• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Horror किस्से अनहोनियों के

Seen@12

Active Member
1,433
2,750
159
बहोत बहोत धन्यवाद. मगर रिडर्स का सपोर्ट नहीं मिल रहा. ऐसे सायद मै आगे ना बढ़ पाऊ.
Aap kahani Mt band kariye Jo readers padhte h unke liye ,mai janta hu jyadatar readers horror nhi pdte h phir bhi aap continue kariye support dhire dhire badh jayega
 
  • Like
Reactions: Shetan

Seen@12

Active Member
1,433
2,750
159
बहोत बहोत धन्यवाद. मगर रिडर्स का सपोर्ट नहीं मिल रहा. ऐसे सायद मै आगे ना बढ़ पाऊ.
Aap kahani Mt band kariye Jo readers padhte h unke liye ,mai janta hu jyadatar readers horror nhi pdte h phir bhi aap continue kariye support dhire dhire badh jayega
 
  • Like
Reactions: Shetan

Shetan

Well-Known Member
16,549
48,767
259
Shetan ji, good to know that you resumed "Kisse...." Awaiting new updates...
Please keep them coming regularly
कोई बात नहीं. मै कल से अपडेट लिखना शुरू करुँगी. लास्ट वाला किस्सा मुजे फिर से किखना होगा. जो गायब हो गया है. क्यों की मेने पोस्ट करने के बाद अपना सेव डिलीट कर दिया था.
 
  • Sad
Reactions: lovelesh

Shetan

Well-Known Member
16,549
48,767
259
Aap kahani Mt band kariye Jo readers padhte h unke liye ,mai janta hu jyadatar readers horror nhi pdte h phir bhi aap continue kariye support dhire dhire badh jayega
स्टोरी बंद नहीं होंगी. पर पब्लिक नहीं होंगी तो स्पीड धीमी हो जाएगी. क्यों की मै ऑफलाइन दूसरी भी स्टोरी लिख रही हु.
 
  • Sad
Reactions: lovelesh

Shetan

Well-Known Member
16,549
48,767
259
A

Update 38

डॉ रुस्तम की जुबानी लगातार वो किस्सा सुना रहे थे. कोमल बलबीर और दाई माँ सुन रहे थे.


डॉ : एक और रात माया सतीश को मरने मे नाकामयाब हो गई. उसे इंतजार था. अगली रात का. हलाकि जब सुबह सतीश उठा तब उसपर किसी भी वशीकरण का असर नहीं था. वो नहा धो कर ऑफिस जाने के लिए तैयार हो रहा था. तब लगातार उसके मोबाईल पर कॉल आ रहा था. वो परमजीत कॉल कर रही थी. माया को गुस्सा भी आ रहा था. जब सतीश तैयार हो गया तो माया ने नाश्ता रेडी कर के उसके सामने रख दिया. माया ने इसी बिच मोबइल को सोफे के पीछे की तरफ सरका दिया.


माया : (स्माइल) लो नाश्ता करो.


तभि रिंग बजी. और सतीश फोन ढूढ़ने लगा.


माया : पहले नाश्ता तो कर लो.


पर तब तक सतीश को फोन मिल गया. परमजीत का कॉल देख कर उसके फेस पर स्माइल आ गई. मगर यही देख कर माया को गुस्सा भी आने लगा. सतीश ने कॉल पिक किया.


सतीश : (स्माइल) हा परम...


परमजीत : (गुस्सा) कब से फोन लगा रही हु. तुम उठा क्यों नहीं रहे???


सतीश : अरे पर हुआ क्या???


परमजीत : ( हड़ बडाट) तुमने कुछ खाया??? तुमने कुछ खाया तो नहीं हेना???


सतीश : हा नहीं खाया. पर हुआ क्या???


परमजीत : आज तुम्हारे घर पूजा है. तुम्हारी बहन के लिए. और तुम्हे कुछ नहीं खाना है. अब तुम जल्दी अपना सामान पैक करो. तुम्हे जल्दी यहाँ आना है.


सतीश : (सॉक) क्या कहा?? मुजे वहां आना है?? पर मै छुट्टी नहीं ले सकता.


वहां जाने का सुनकर माया भड़क गई.


माया : नहीं तुम नहीं जाओगे.


यह बात परमजीत ने सुन ली. दाई माँ ने तो परमजीत को पहले ही समझा दिया था.


परमजीत : अरे अभी 11 बजे तक की तुम्हारी फ्लाइट बुक कर दी है. और रात तुम्हारी देर रात की भी फ्लाइट बुक है. फिकर मत करो. सिर्फ आज के दिन की ही छुट्टी है.


सतीश ने माया की तरफ देखा. और उसे दिलासा दिया. सतीश को भी परमजीत से मिलने का मन हो रहा था. वो माया को सफाई देता है.


सतीश : अरे भाभी रात 11 बजे तक मै वापस पहोच जाऊंगा.


यह सुनकर माया शांत हो गई. डायन कभी अपना शिकार नहीं छोड़ती. उसे अपने काला जादू जो वुडूडॉल से किया. उसपर भरोसा था. हलाकि उसे नहीं पता थी की दाई माँ और परमजीत उस गुड्डे को चुरा चुके है.


परमजीत : अच्छा सुनो. तुम देशी मुर्गे का मीट भी लेकर आना. वो टोटके के लिए चाहिये.


सतीश : (भड़कना) अब मै तैयार होउ या देशी मुर्गे का मीट ढूढ़.


परमजीत को पता था की सतीश भड़केगा. उसे तो माया को ही सुना ना था.


परमजीत : अरे बाबा तुम तुम्हारी उस भाभी को बोलो ना. जब तक तुम तैयार होंगे. वो ला देगी.


सतीश ने माया की तरफ देखा.


सतीश : भाभी वो एक देशी मुर्गे का मीट चाहिये. और जल्द चाहिये.


माया मुश्कुराती हुई खड़ी हुई.


माया : (स्माइल) ठीक है. तुम रुको मै लेकर आती हु.


माया वहां से चली गई. माया ने जो कहा. वो परमजीत ने सुन लिया.


परमजीत : क्या भाभी चली गई??


सतीश : हा वो बस जल्दी ही आ जाएगी.


परमजीत : ठीक है. जल्दी दरवाजा खोलो. मै बहार ही खड़ी हु.


सतीश सॉक हो गया.


सतीश : (सॉक) क्या???


परमजीत : (हड़ बडाते) अरे सब बाद मे समझाउंगी. पहले जल्दी दरवाजा खोलो.


सतीश तुरंत खड़ा हुआ. और दरवाजा खोलता है. वो सामने परमजीत को देख कर सॉक हो गया. सतीश तुम बोलने ही वाला था की परमजीत ने उसके मुँह पर हाथ रख दिया.


परमजीत : ससस... तुम जिसके साथ रहे रहे हो. वो एक डायन है.


सतीश को समझ नहीं आया. और वो नार्मल बोलने गया. पर परमजीत ने उसके मुँह पर हाथ रख दिया.


परमजीत : ससससस... अरे वो तुम्हारी भाभी एक डायन है. और जल्दी चलो. वरना वो आ जाएगी.


सतीश : पर मेरा सामान तो ले लू.


परमजीत : अरे बाबा जान बचेगी तो सामान दूसरा खरीद लेंगे. चलो अब टेक्सी बहार ही है.


सतीश तुरंत ही बहार निकालने गया. पर जाते जाते रुक गया. क्यों की परमजीत कुछ छिड़क रही थी. वो सरसो के दाने पुरे घर मे छिड़क रही थी.


परमजीत : (धीमी आवाज) तुम्हारा रूम कोनसा है.


सतीश ने अपने रूम की तरफ हिसारा किया. परमजीत उस रूम मे चली गई. उसने चारो तरफ सरसो के दाने फेके. और एक पॉलीथिन से कुछ बिकला. वो एक बकरे का सर था. उसने उस बकरे के सर को उस सतीश के बेड पर बिच मे रख दिया. और तुरंत बहार निकली. सतीश ने भी यह सब देखा. वो घबरा गया था. और काँपने लगा था. परमजीत तुरंत उसके पास आई और सतीश का हाथ पकड़ कर तेज़ी से उसे बहार ले जाती है.

बहार टेक्सी पहले से तैयार थी. ड्राइवर के बगल मे आगे वाली शीट पर दाई माँ पहले से बैठी हुई थी. सतीश ने तो उस दिन पहेली बार दाई माँ को देखा था. परमजीत ने सतीश को जैसे बैठाया. और खुद बैठी. तुरंत ही टेक्सी चल पड़ी. पर गाड़ी चलते ही जब सतीश ने पीछे देखा तो वह हैरान रहे गया. माया भागती हुई उसी घर से निकली. उसका मुँह खून से सना हुआ था.

और उसके हाथ मे एक मुर्गा लटक रहा था. जिसे माया ने उसके पंख से पकड़ा हुआ था. सतीश को एहसास हुआ की वह मौत से बचकर आया है. उसे दूसरा जीवन मिला.


ऐसे मे कोमल के दिमाग़ मे जितने सवाल थे. वह सारे पूछ ही लेती है.


कोमल : लेकिन मुजे यह समझ नहीं आया की वो बकरे का सर क्यों रखा????


डॉ रुस्तम बोलने ही वाले थे की उनकी बस झटके खाने लगी.


बलबीर : आगे वाला टायर पंचर हुआ है. पिकअप मत दो. बस स्टेरिंग सम्भालो और बेलेंस करो.


बलबीर ने ड्राइवर को हिदायत दी. आखिर बलबीर पुराना ट्रक ड्राइवर जो था.

 

lovelesh

Member
161
360
63
Shetan ji, आप बहुत बढ़िया लिख रही हो और आगे भी लिखना जारी रखो। पाठक अपने आप वापस जुड़ जाएंगे।
काफ़ी वक्त से कहानी बंद होने, और अभी कुछ दिनों से xforum में कुछ समस्याएं होने से व्यूज़ कम हो गए हैं, पर वो भी रिकवर हो जाएंगे। आप हिम्मत ना हारे।
 
  • Like
Reactions: Shetan

Shetan

Well-Known Member
16,549
48,767
259
Shetan ji, आप बहुत बढ़िया लिख रही हो और आगे भी लिखना जारी रखो। पाठक अपने आप वापस जुड़ जाएंगे।
काफ़ी वक्त से कहानी बंद होने, और अभी कुछ दिनों से xforum में कुछ समस्याएं होने से व्यूज़ कम हो गए हैं, पर वो भी रिकवर हो जाएंगे। आप हिम्मत ना हारे।
अगर 3,4 रिप्लाई भी आए तो आगे लिखूँगी. वरना दूसरी एक इरोटिक स्टोरी मै लिख रही हु.
 
  • Sad
Reactions: lovelesh

lovelesh

Member
161
360
63
अगर 3,4 रिप्लाई भी आए तो आगे लिखूँगी. वरना दूसरी एक इरोटिक स्टोरी मै लिख रही हु.
कर्मण्येवाधिकारस्ते, मा फलेशु कदाचन।
 
  • Wow
Reactions: Shetan
Top