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Dekh Dekh Kese Khud Ki Tarif Kar Ke Khush Ho Raha HaiKyu nahi lagegi bhai. Mene likhi hi.
Ek se ek dialogues rahenge iss story me.
भाई, इसे कहते है सेंकई करना। पूरा तावा मे न चड़ाकर धीरे धीरे सेकनाभाई, इसे कहते है सेंकई करना। पूरा तावा मे न चड़ाकर धीरे धीरे सेकना। बहुत अच्छा लगा। प्रांजल के साथ ऐसा ही होना चाहिए। धीरे धीरे ऐसा सेंक दीजिये जिसमे वो कुछ काही बोल भी न पाये और न ही झेल पाये। अच्छा ये जो प्रॉपर्टि प्रांजल को दिया गया है उसका उसके हाथ से छिना जरूरी है। पहले तो विवेक उसके साथ था लेकिन अभी तो उसके साथ वो नहीं देगा। सही समय है उसके हाथ से ये भी छिना जाए। आपके सब अनुच्छेद एक से बढ़कर एक। हर तीसरे दिन आपका अगला अनुछेद का इंतजार मे रहते है। मुझे आपके लेखनी के संग आप का दिया हुआ सभी के जवाब पड़ने मे बहुत अच्छा लगता है। आपको बहुत बहुत बधाई इतना सुंदर उपन्यास हमे देने के लिए।
Kyu nahi lagegi bhai. Mene likhi hi.Kyu nahi lagegi bhai. Mene likhi hi.
Ek se ek dialogues rahenge iss story me.
Werewolf brother lekhak ko hak bhi hai khush hone kaDekh Dekh Kese Khud Ki Tarif Kar Ke Khush Ho Raha Hai