• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Romance तुम मेरे हो

आसिफा

Family Love 😘😘
122
249
44
प्रोलॉग

सर्दियों की हल्की ठंडक में दिल्ली की सड़कों पर शाम ढल रही थी। सूरज का नारंगी रंग आकाश में धीरे-धीरे गहराता जा रहा था। रिया एक छोटी सी कैफे के कोने में बैठी थी, उसकी उंगलियां गर्म कॉफी के कप पर टिकी हुई थीं। उसकी निगाहें बार-बार दरवाजे की ओर जातीं, मानो किसी का इंतजार कर रही हों।

“तुम हमेशा लेट हो, आर्यन,” उसने धीमे से कहा, जैसे ही वह दरवाजे से अंदर आया।

“और तुम हमेशा शिकायत करती हो,” उसने मुस्कुराते हुए जवाब दिया और सामने बैठ गया।

रिया ने गहरी सांस ली, जैसे कोई बड़ा फैसला करने जा रही हो।

“आर्यन, हमें बात करनी होगी,” उसने गंभीर स्वर में कहा।

“क्या हुआ? सब ठीक है ना?” आर्यन ने उसकी आँखों में झांकते हुए पूछा।

“नहीं, सब ठीक नहीं है। आर्यन, यह रिश्ता अब और आगे नहीं बढ़ सकता।”

आर्यन का चेहरा पल भर में कठोर हो गया। उसने सोचा, यह मज़ाक है।

“रिया, तुम क्या कह रही हो? हम एक-दूसरे से प्यार करते हैं। हमने एक साथ भविष्य के सपने देखे हैं।”

“प्यार...?” उसने कड़वाहट से कहा। “आर्यन, यह सिर्फ एक आकर्षण था। मैं इसे प्यार नहीं कह सकती। मुझे लगता है, यह खत्म करने का समय आ गया है।”

“तुम मज़ाक कर रही हो, रिया। यह तुम नहीं हो,” आर्यन का स्वर विश्वास और डर के बीच डगमगा रहा था।

“मैं वही कह रही हूं, जो सच है। मैं अब इस रिश्ते में नहीं रह सकती। मुझे अपनी जिंदगी को अलग दिशा में ले जाना है।”

आर्यन को लगा, जैसे उसके पैरों के नीचे से जमीन खिसक रही हो।

“रिया, प्लीज! हम इतने करीब आए हैं। तुम ऐसा नहीं कर सकती।”

“मैं मजबूर हूं, आर्यन। यह सही है।”

कुछ पल के लिए दोनों के बीच गहरी खामोशी छा गई। आर्यन ने उसकी ओर देखा, उसकी आँखों में टूटे सपनों का दर्द साफ झलक रहा था।

“अगर यह तुम्हारा फैसला है, तो मैं इसे बदल नहीं सकता। लेकिन याद रखना, रिया, मैं हमेशा तुम्हारे लिए खड़ा रहूंगा। शायद, किसी दिन तुम्हें एहसास हो कि यह प्यार सच्चा था।”

यह कहकर वह उठ खड़ा हुआ और बिना पलटे वहां से चला गया। रिया ने बस उसे जाते हुए देखा, उसकी आंखों में हल्का सा पानी झलक रहा था।

क्या यह प्यार का अंत था, या सिर्फ एक और मोड़? क्या आर्यन और रिया की राहें फिर कभी मिलेंगी? जानने के लिए पढ़ते रहिए, तुम मेरे हो।


---

अगर आपको इस तरह की कहानी

पसंद है, तो बताइए। मैं इसे और आगे लिख सकता हूं।
 
Last edited:

आसिफा

Family Love 😘😘
122
249
44
तुम मेरे हो – अध्याय 1

आर्यन का दिल भारी था। कैफे से बाहर निकलते ही ठंडी हवा ने उसके चेहरे को छुआ, लेकिन उसके भीतर की गर्मी ठंडी पड़ चुकी थी। उसके कदम बिना दिशा के सड़कों पर बढ़ते जा रहे थे। वह खुद से लड़ रहा था।

“क्यों? आखिर क्यों?” उसने खुद से बुदबुदाया।

रिया ने उसे हर वह खुशी दी थी, जिसका उसने कभी सपना देखा था। वह उसकी ज़िंदगी का हिस्सा थी, और अब वह कह रही थी कि यह सब एक "आकर्षण" था।

घर पहुंचने पर उसने खुद को अपने कमरे में बंद कर लिया। दीवारों पर टंगे रिया के साथ के फोटो अब उसे चुभने लगे थे। वह यादें, जिनमें वह उसकी हंसी देखता था, अब गहरे जख्म की तरह लग रही थीं।

दूसरी ओर...

रिया भी अपने फैसले के बाद चैन से नहीं बैठ सकी। वह जानती थी कि आर्यन को इस तरह छोड़ना उसके लिए आसान नहीं था। वह उससे प्यार करती थी, लेकिन अपने परिवार की जिम्मेदारियों और अपनी खुद की महत्वाकांक्षाओं ने उसे आगे बढ़ने से रोक दिया था।

उसकी मां की बीमारी, छोटे भाई की पढ़ाई, और घर के ढेर सारे कर्ज उसे रोज याद दिलाते थे कि उसकी जिंदगी सिर्फ उसकी नहीं थी।

उसने खुद से कहा, "आर्यन समझ जाएगा। वह मुझे नफरत करेगा, लेकिन मैं उसके प्यार का बोझ नहीं उठा सकती।"

कुछ दिन बाद...

आर्यन ने खुद को काम में डुबो दिया। वह एक सफल आर्किटेक्ट था, लेकिन अब उसका मन किसी भी प्रोजेक्ट में नहीं लगता था। ऑफिस में भी सबने उसकी उदासी नोट की थी, लेकिन कोई उसे कुछ कहने की हिम्मत नहीं जुटा सका।

एक दिन, उसके दोस्त आदित्य ने उससे कहा,
“भाई, कब तक खुद को इस हालत में रखोगे? अगर वो चली गई तो क्या? ज़िंदगी रुकी नहीं है।”

आर्यन ने कड़वाहट से हंसते हुए कहा,
“जिंदगी रुकी नहीं है, लेकिन जीने की वजह चली गई है।”

आदित्य ने गहरी सांस ली।
“देख, मैं जानता हूं ये आसान नहीं है। लेकिन अगर वो तुम्हारे लिए बनी होती, तो वह कभी तुम्हें इस तरह छोड़कर नहीं जाती।”

आर्यन चुप रह गया। वह जानता था कि आदित्य सही कह रहा है, लेकिन उसका दिल इस बात को मानने के लिए तैयार नहीं था।

उधर रिया की जिंदगी भी आसान नहीं थी।

वह अपने परिवार के लिए दौड़भाग कर रही थी, लेकिन हर बार जब वह अकेली होती, तो उसे आर्यन की याद आती। उसकी हंसी, उसका ख्याल रखना, उसकी बातें—सब कुछ उसकी आंखों के सामने घूमने लगता।

एक रात, जब वह अपने कमरे में अकेली थी, उसकी दोस्त सिमी ने उससे कहा,
“रिया, तुमने आर्यन को क्यों छोड़ा? तुम उससे प्यार करती हो, यह मैं जानती हूं।”

रिया ने अपनी आंखों को छुपाते हुए कहा,
“प्यार काफी नहीं होता, सिमी। मेरे पास और भी जिम्मेदारियां हैं। मैं नहीं चाहती थी कि वह मेरे परिवार के बोझ को उठाए। वह यह सब डिजर्व नहीं करता।”

सिमी ने गहरी नजरों से उसकी ओर देखा।
“लेकिन तुम ये भूल रही हो कि प्यार सिर्फ खुशी नहीं, बल्कि एक-दूसरे के दर्द को बांटने का नाम भी है। शायद तुमने उसे कभी ठीक से समझने का मौका ही नहीं दिया।”

आगे क्या होगा?

क्या आर्यन अपने टूटे दिल को संभाल पाएगा? क्या रिया अपने फैसले पर दोबारा सोचेगी? या फिर किस्मत दोनों को दोबारा एक मंच पर ला खड़ा करेगी?

पढ़ते रहिए, तुम मेरे हो।

 
Last edited:
10,055
42,023
258
आप को आपकी पहली स्टोरी के लिए बहुत बहुत बधाई ।

रिया और आर्यन के विहेवियर देखकर ऐसा लगता नही कि यह दोनो कोई गलत इंसान हैं । दोनो ने एक दूसरे को देखकर , समझकर ही एक दूसरे से प्रेम किया होगा ।
फिर ऐसा अचानक क्या हुआ रिया ने आर्यन से दूर होने का फैसला लिया ? और आर्यन जिस तरह खामोशी के साथ रिया के फैसले का सम्मान किया उससे आर्यन कहीं से भी गलत लड़का नही लगता ।

एक बात और समझ मे नही आई । रिया दरिद्र फैमिली से विलोंग्स करती है या एक रईस फैमिली से है ? उसके मां की बीमारी , उसके छोटे भाई का स्कूल छोड़ना दर्शा रहा है कि वह गरीब परिवार से है लेकिन एक एन जी ओ का संचालन उसे अमीर श्रेणी मे खड़ा कर रहा है ।

वैसे पहला अपडेट बहुत ही खूबसूरत लिखा है आपने । आप से ऐसे ही खूबसूरत खूबसूरत अपडेट की आशा है ।

आउटस्टैंडिंग एंड अमेजिंग अपडेट आसिफा डियर ।
 

आसिफा

Family Love 😘😘
122
249
44
आप को आपकी पहली स्टोरी के लिए बहुत बहुत बधाई ।

रिया और आर्यन के विहेवियर देखकर ऐसा लगता नही कि यह दोनो कोई गलत इंसान हैं । दोनो ने एक दूसरे को देखकर , समझकर ही एक दूसरे से प्रेम किया होगा ।
फिर ऐसा अचानक क्या हुआ रिया ने आर्यन से दूर होने का फैसला लिया ? और आर्यन जिस तरह खामोशी के साथ रिया के फैसले का सम्मान किया उससे आर्यन कहीं से भी गलत लड़का नही लगता ।

एक बात और समझ मे नही आई । रिया दरिद्र फैमिली से विलोंग्स करती है या एक रईस फैमिली से है ? उसके मां की बीमारी , उसके छोटे भाई का स्कूल छोड़ना दर्शा रहा है कि वह गरीब परिवार से है लेकिन एक एन जी ओ का संचालन उसे अमीर श्रेणी मे खड़ा कर रहा है ।

वैसे पहला अपडेट बहुत ही खूबसूरत लिखा है आपने । आप से ऐसे ही खूबसूरत खूबसूरत अपडेट की आशा है ।

आउटस्टैंडिंग एंड अमेजिंग अपडेट आसिफा डियर ।
सकारात्मक प्रतिक्रिया के लिए धन्यवाद
 
  • Like
Reactions: SANJU ( V. R. )

आसिफा

Family Love 😘😘
122
249
44
तुम मेरे हो – अध्याय 2

वक़्त ने धीरे-धीरे अपनी चाल पकड़ ली। आर्यन ने अपने काम में खुद को पूरी तरह डुबो दिया। अब वह दिन-रात नए प्रोजेक्ट्स पर काम करता, अपनी भावनाओं को दबाने की नाकाम कोशिश में। मगर जब रात होती और अकेलापन घेरता, तो रिया की यादें उसकी आंखों के सामने तैरने लगतीं।

एक शाम, आर्यन का दोस्त आदित्य उसे जबरदस्ती एक पार्टी में ले गया।

“तू ऐसे नहीं चल सकता, आर्यन। थोड़ा बाहर निकल, लोगों से मिल। शायद तेरा ध्यान बंट जाए,” आदित्य ने कहा।

पार्टी में हंसी-मजाक का माहौल था। आर्यन खुद को सहज करने की कोशिश कर रहा था, लेकिन तभी उसकी नज़र एक जोड़े पर पड़ी। वह महिला रिया की तरह दिख रही थी। उसका दिल तेज़ी से धड़कने लगा।

“रिया?” उसने धीरे से कहा और उस ओर बढ़ गया।

करीब जाकर उसने देखा, वह रिया नहीं थी। उसकी सांस रुकी और फिर राहत की गहरी सांस ली। लेकिन इस छोटी सी झलक ने उसकी यादों को और गहरा कर दिया।


---

उधर, रिया की जिंदगी भी जटिल होती जा रही थी।

अपने परिवार के लिए सब कुछ करते हुए वह कहीं खुद को खोती जा रही थी। उसकी मां की तबीयत में सुधार नहीं हो रहा था, और उसका भाई पढ़ाई छोड़ने की बात कर रहा था।

एक रात, जब रिया अपने कमरे में अकेली थी, उसने अपने फोन पर पुरानी तस्वीरें देखनी शुरू कीं। उसमें आर्यन के साथ ली गई तस्वीरें भी थीं—उनकी मुस्कान, उसकी आंखों में प्यार, और वह सब कुछ जो उसने हमेशा चाहा था।

उसने फोन नीचे रखा और खिड़की से बाहर देखते हुए बुदबुदाई,
“क्या मैंने गलती की?”

रिया के मन में सवाल उमड़ने लगे।
क्या उसने आर्यन को छोड़कर सही किया था? या यह उसका खुद को धोखा देने का एक तरीका था?


---

एक मोड़

एक दिन, आर्यन को अपने ऑफिस में एक नया प्रोजेक्ट मिला। यह एक एनजीओ के साथ साझेदारी का प्रोजेक्ट था, जिसमें उसे गरीब बच्चों के लिए एक स्कूल डिजाइन करना था।

जब उसने क्लाइंट से मुलाकात की, तो उसे पता चला कि यह एनजीओ रिया के परिवार द्वारा चलाया जा रहा था। यह जानकर उसका दिल अजीब भावनाओं से भर गया।

क्लाइंट ने कहा,
“आपको इस प्रोजेक्ट के लिए एनजीओ के डायरेक्टर से भी मिलना होगा। क्या आप तैयार हैं?”

आर्यन ने अनिच्छा से हामी भरी। अगले दिन, वह रिया के एनजीओ के ऑफिस पहुंचा।

वहां उसे सामने रिया दिखी। वह सफेद कुर्ती और जींस में थी, लेकिन उसकी आंखें थकी हुई लग रही थीं। उसे देखकर आर्यन का दिल फिर से तेज़ी से धड़कने लगा।

रिया ने उसे देखा, और पल भर के लिए उसकी सांसें रुक गईं। वह जानती थी कि यह मुलाकात टाली नहीं जा सकती।

आर्यन ने ठंडी आवाज में कहा,
“हेलो, मिस रिया। उम्मीद नहीं थी कि यहां मिलूंगा।”

रिया ने खुद को संभालते हुए जवाब दिया,
“हेलो, आर्यन। यह भी एक संयोग ही है।”

दोनों के बीच औपचारिक बातें हुईं, लेकिन उनके दिलों में भावनाओं का तूफान उमड़ रहा था।


---

क्या यह मुलाकात उनके रिश्ते को नया मोड़ देगी?
क्या रिया अपनी भावनाओं को स्वीकार करेगी, या अपने फैसले पर अडिग रहेगी?
और क्या आर्यन के पास उसे फिर से अप
नी जिंदगी में लाने का हौसला होगा?

पढ़ते रहिए, तुम मेरे हो।
 

आसिफा

Family Love 😘😘
122
249
44
तुम मेरे हो – अध्याय 3

एनजीओ का प्रोजेक्ट आर्यन के लिए एक ऐसा पुल बन गया, जिसने उसे रिया के करीब ला दिया। हालांकि दोनों औपचारिक बातचीत करते, लेकिन उनकी आंखों में वो अनकहा दर्द और पुरानी यादों का असर साफ झलकता था।

एक दिन...

आर्यन एनजीओ के नए स्कूल के डिजाइन पर काम कर रहा था, जब रिया अचानक उसके केबिन में आई।

"आर्यन, ये ड्रॉइंग्स थोड़ी एडजस्टमेंट मांगती हैं। मैं चाहती हूं कि बच्चों के लिए खेल का मैदान थोड़ा बड़ा हो," उसने कहा।

आर्यन ने बिना उसकी तरफ देखे कागज लेते हुए जवाब दिया,
"ठीक है। मैं इसे बदल दूंगा।"

रिया ने उसकी बेरुखी को महसूस किया। कुछ पल के लिए उसने सोचा, फिर धीरे से बोली,
"तुम ठीक हो?"

आर्यन ने उसकी ओर देखा। उसकी आंखों में वह प्यार नहीं, बल्कि एक अजीब सी चुभन थी।
"रिया, अगर तुम चाहती हो कि मैं यह काम पेशेवर तरीके से करूं, तो कृपया व्यक्तिगत सवाल न पूछो।"

रिया चुप हो गई। वह समझ गई कि उसने आर्यन को गहराई से चोट पहुंचाई थी।


---

आर्यन का संघर्ष

उस रात, आर्यन अपने कमरे में बैठा शराब की बोतल लिए सोच रहा था। उसके दिमाग में रिया के साथ बिताए पल बार-बार घूम रहे थे।

आदित्य वहां आया और बोला,
"भाई, खुद को इतना क्यों तकलीफ दे रहा है? अगर वो तुझे छोड़कर चली गई, तो इसका मतलब यह नहीं कि जिंदगी रुक गई।"

आर्यन ने शराब का गिलास रखकर कहा,
"आदित्य, प्यार में किसी को भूलना इतना आसान नहीं होता। वो मेरी ज़िंदगी थी। मैं अब भी उससे प्यार करता हूं।"

आदित्य ने गहरी सांस ली।
"लेकिन क्या तुमने कभी सोचा है कि शायद उसकी अपनी मजबूरियां हों? तुम उससे प्यार करते हो, तो उसे समझने की कोशिश करो।"


---

रिया का संघर्ष

दूसरी तरफ, रिया के मन में भी आर्यन को लेकर हलचल मची हुई थी। वह हर दिन उसे देखती, लेकिन उससे कुछ कह नहीं पाती।

उसकी दोस्त सिमी ने एक दिन उससे कहा,
"रिया, तुम अब और खुद से झूठ मत बोलो। अगर तुम आर्यन से प्यार करती हो, तो उसे बताओ।"

रिया ने रोते हुए जवाब दिया,
"लेकिन मेरे हालात... मेरी जिम्मेदारियां... मैं उसे कैसे समझाऊं कि मैं उसे छोड़ना नहीं चाहती थी, लेकिन मजबूर थी?"

सिमी ने उसे समझाया,
"प्यार में हालात और मजबूरियां मायने नहीं रखतीं। अगर वो सच में तुमसे प्यार करता है, तो तुम्हारे हर दर्द को अपनाएगा।"


---

फिर आया वह दिन...

एनजीओ के स्कूल का उद्घाटन होने वाला था। कार्यक्रम में सभी मौजूद थे। आर्यन ने बच्चों के साथ समय बिताते हुए देखा कि कैसे रिया उनके लिए अपनी जान लगा रही थी।

कार्यक्रम के बाद, रिया ने आर्यन को रोकते हुए कहा,
"आर्यन, क्या हम बात कर सकते हैं?"

आर्यन ने पल भर के लिए उसकी ओर देखा, फिर सहमति में सिर हिला दिया।

दोनों एक खाली कमरे में चले गए।

"आर्यन, मैं जानती हूं कि मैंने तुम्हें बहुत दर्द दिया है," रिया ने धीमी आवाज में कहा। "लेकिन मैंने जो भी किया, वो मेरे हालात की वजह से किया। मैं तुम्हें चोट नहीं पहुंचाना चाहती थी।"

आर्यन ने कड़वाहट भरी हंसी के साथ जवाब दिया,
"रिया, अगर तुम मुझे चोट नहीं पहुंचाना चाहती थीं, तो तुमने वो सब क्यों कहा? प्यार को झूठ क्यों कहा?"

उसकी बात सुनकर रिया की आंखों से आंसू बहने लगे।
"क्योंकि मैं डर गई थी। मुझे लगा कि मेरी जिम्मेदारियां और तुम्हारा प्यार एक साथ नहीं चल सकते। लेकिन मैंने गलत सोचा।"

आर्यन कुछ पल चुप रहा।
"तो अब क्या चाहती हो, रिया?"

रिया ने उसकी आंखों में देखते हुए कहा,
"एक और मौका। अगर तुम अब भी मुझसे प्यार करते हो, तो मैं इस बार अपने डर पर काबू पाने की कोशिश करूंगी।"


---

क्या आर्यन रिया को माफ करेगा?
क्या उनका प्यार फिर से खिल पाएगा?
या उनके
बीच की खाई इतनी गहरी हो चुकी है कि इसे पाटना मुमकिन नहीं?

पढ़ते रहिए, तुम मेरे हो।
 

Mr Jerry

Member
251
245
44
तुम मेरे हो – अध्याय 3

एनजीओ का प्रोजेक्ट आर्यन के लिए एक ऐसा पुल बन गया, जिसने उसे रिया के करीब ला दिया। हालांकि दोनों औपचारिक बातचीत करते, लेकिन उनकी आंखों में वो अनकहा दर्द और पुरानी यादों का असर साफ झलकता था।

एक दिन...

आर्यन एनजीओ के नए स्कूल के डिजाइन पर काम कर रहा था, जब रिया अचानक उसके केबिन में आई।

"आर्यन, ये ड्रॉइंग्स थोड़ी एडजस्टमेंट मांगती हैं। मैं चाहती हूं कि बच्चों के लिए खेल का मैदान थोड़ा बड़ा हो," उसने कहा।

आर्यन ने बिना उसकी तरफ देखे कागज लेते हुए जवाब दिया,
"ठीक है। मैं इसे बदल दूंगा।"

रिया ने उसकी बेरुखी को महसूस किया। कुछ पल के लिए उसने सोचा, फिर धीरे से बोली,
"तुम ठीक हो?"

आर्यन ने उसकी ओर देखा। उसकी आंखों में वह प्यार नहीं, बल्कि एक अजीब सी चुभन थी।
"रिया, अगर तुम चाहती हो कि मैं यह काम पेशेवर तरीके से करूं, तो कृपया व्यक्तिगत सवाल न पूछो।"

रिया चुप हो गई। वह समझ गई कि उसने आर्यन को गहराई से चोट पहुंचाई थी।


---

आर्यन का संघर्ष

उस रात, आर्यन अपने कमरे में बैठा शराब की बोतल लिए सोच रहा था। उसके दिमाग में रिया के साथ बिताए पल बार-बार घूम रहे थे।

आदित्य वहां आया और बोला,
"भाई, खुद को इतना क्यों तकलीफ दे रहा है? अगर वो तुझे छोड़कर चली गई, तो इसका मतलब यह नहीं कि जिंदगी रुक गई।"

आर्यन ने शराब का गिलास रखकर कहा,
"आदित्य, प्यार में किसी को भूलना इतना आसान नहीं होता। वो मेरी ज़िंदगी थी। मैं अब भी उससे प्यार करता हूं।"

आदित्य ने गहरी सांस ली।
"लेकिन क्या तुमने कभी सोचा है कि शायद उसकी अपनी मजबूरियां हों? तुम उससे प्यार करते हो, तो उसे समझने की कोशिश करो।"


---

रिया का संघर्ष

दूसरी तरफ, रिया के मन में भी आर्यन को लेकर हलचल मची हुई थी। वह हर दिन उसे देखती, लेकिन उससे कुछ कह नहीं पाती।

उसकी दोस्त सिमी ने एक दिन उससे कहा,
"रिया, तुम अब और खुद से झूठ मत बोलो। अगर तुम आर्यन से प्यार करती हो, तो उसे बताओ।"

रिया ने रोते हुए जवाब दिया,
"लेकिन मेरे हालात... मेरी जिम्मेदारियां... मैं उसे कैसे समझाऊं कि मैं उसे छोड़ना नहीं चाहती थी, लेकिन मजबूर थी?"

सिमी ने उसे समझाया,
"प्यार में हालात और मजबूरियां मायने नहीं रखतीं। अगर वो सच में तुमसे प्यार करता है, तो तुम्हारे हर दर्द को अपनाएगा।"


---

फिर आया वह दिन...

एनजीओ के स्कूल का उद्घाटन होने वाला था। कार्यक्रम में सभी मौजूद थे। आर्यन ने बच्चों के साथ समय बिताते हुए देखा कि कैसे रिया उनके लिए अपनी जान लगा रही थी।

कार्यक्रम के बाद, रिया ने आर्यन को रोकते हुए कहा,
"आर्यन, क्या हम बात कर सकते हैं?"

आर्यन ने पल भर के लिए उसकी ओर देखा, फिर सहमति में सिर हिला दिया।

दोनों एक खाली कमरे में चले गए।

"आर्यन, मैं जानती हूं कि मैंने तुम्हें बहुत दर्द दिया है," रिया ने धीमी आवाज में कहा। "लेकिन मैंने जो भी किया, वो मेरे हालात की वजह से किया। मैं तुम्हें चोट नहीं पहुंचाना चाहती थी।"

आर्यन ने कड़वाहट भरी हंसी के साथ जवाब दिया,
"रिया, अगर तुम मुझे चोट नहीं पहुंचाना चाहती थीं, तो तुमने वो सब क्यों कहा? प्यार को झूठ क्यों कहा?"

उसकी बात सुनकर रिया की आंखों से आंसू बहने लगे।
"क्योंकि मैं डर गई थी। मुझे लगा कि मेरी जिम्मेदारियां और तुम्हारा प्यार एक साथ नहीं चल सकते। लेकिन मैंने गलत सोचा।"

आर्यन कुछ पल चुप रहा।
"तो अब क्या चाहती हो, रिया?"

रिया ने उसकी आंखों में देखते हुए कहा,
"एक और मौका। अगर तुम अब भी मुझसे प्यार करते हो, तो मैं इस बार अपने डर पर काबू पाने की कोशिश करूंगी।"


---

क्या आर्यन रिया को माफ करेगा?
क्या उनका प्यार फिर से खिल पाएगा?
या उनके

बीच की खाई इतनी गहरी हो चुकी है कि इसे पाटना मुमकिन नहीं?

पढ़ते रहिए, तुम मेरे हो।
Bahut hi mazedaar update hai ... Ab aage dekhna mai Mazza ayega ki Aryan kya karta hai ... 🎉🎉
 

आसिफा

Family Love 😘😘
122
249
44
तुम मेरे हो – अध्याय 4

आर्यन कुछ पल तक रिया की आंखों में देखता रहा। उसकी आंखों में आंसू थे, लेकिन वहां सच्चाई भी झलक रही थी। वह चाहकर भी उसे अनदेखा नहीं कर पा रहा था।

"रिया," उसने गहरी सांस लेते हुए कहा, "क्या तुम्हें पता है कि मैंने तुम्हारे बिना क्या झेला है? तुम्हारे हर शब्द ने मुझे तोड़ दिया था। और अब, जब मैं खुद को थोड़ा संभालने की कोशिश कर रहा हूं, तुम वापस आ गई हो, यह कहने कि तुमने गलती की?"

रिया ने सिर झुका लिया।
"मुझे पता है, आर्यन। मैं शायद माफी के लायक भी नहीं हूं। लेकिन मैं तुम्हें खोने के डर में जी नहीं सकती। अगर तुम मुझे फिर से अपनाने के लिए तैयार नहीं हो, तो मैं समझूंगी।"

आर्यन चुप हो गया। उसके दिल और दिमाग के बीच संघर्ष शुरू हो गया।


---

दोनों का अलग-अलग सफर

रिया उस दिन आर्यन के जवाब का इंतजार किए बिना चली गई। उसने सोचा कि शायद यह उसकी सजा है। वह जानती थी कि उसने आर्यन को कितना गहरा दुख दिया है।

आर्यन ने भी खुद को व्यस्त रखने की कोशिश की, लेकिन हर बार रिया का चेहरा उसके सामने आ जाता। उसका प्यार, उसकी गलतियां, उसकी सच्चाई—सब कुछ।

दोनों अपने-अपने रास्ते चलने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन किस्मत ने उन्हें फिर से आमने-सामने लाने का फैसला कर लिया था।


---

एक अप्रत्याशित मुलाकात

एक महीने बाद, आर्यन को एक कॉन्फ्रेंस के लिए मुंबई जाना पड़ा। कॉन्फ्रेंस के बाद वह एक कैफे में बैठा था, जब उसने रिया को देखा।

रिया कैफे के कोने में बैठी थी, उसके सामने कुछ कागजात रखे थे। वह गहरे ख्यालों में डूबी हुई थी।

आर्यन ने खुद को रोकने की कोशिश की, लेकिन उसके कदम खुद-ब-खुद उसकी ओर बढ़ गए।

"यह तो संयोग ही है," उसने कहा।

रिया चौंककर ऊपर देखी। वह आर्यन को देखकर कुछ पल के लिए बोल नहीं पाई।
"आर्यन... तुम यहां?"

"हां, काम के सिलसिले में आया था। और तुम?"

"मैं भी काम के लिए," रिया ने धीमे से जवाब दिया।

दोनों कुछ पल के लिए चुप रहे। फिर आर्यन ने कहा,
"क्या हम बात कर सकते हैं?"

रिया ने सहमति में सिर हिलाया।


---

दिल से दिल की बात

दोनों ने कैफे के एक शांत कोने में बैठकर बात शुरू की। आर्यन ने कहा,
"रिया, मैं अब भी नहीं समझ पा रहा हूं कि तुमने मुझे क्यों छोड़ा। तुम्हें मुझ पर भरोसा करना चाहिए था।"

रिया ने गहरी सांस लेते हुए कहा,
"आर्यन, मैंने तुमसे प्यार किया, लेकिन मैं अपनी जिम्मेदारियों के बोझ से दब गई थी। मुझे लगा था कि अगर मैंने तुम्हें अपने जीवन में रहने दिया, तो यह बोझ तुम्हारे ऊपर भी आ जाएगा। लेकिन मैं गलत थी। प्यार साझेदारी है, त्याग नहीं। मुझे यह अब समझ में आया है।"

आर्यन ने उसकी बात सुनी। उसकी आंखों में एक नरमी आ गई।
"रिया, प्यार सिर्फ खुशी नहीं है। यह दर्द बांटने का नाम भी है। तुमने मुझे दूर करके यह मौका ही नहीं दिया।"

रिया ने उसकी ओर देखते हुए कहा,
"अगर मैं कहूं कि मैं एक और मौका चाहती हूं, तो क्या तुम मुझे माफ कर सकोगे?"


---

आर्यन का फैसला

आर्यन कुछ पल चुप रहा। उसने अपनी यादों को टटोलते हुए कहा,
"मैंने तुम्हें टूटे हुए दिल के साथ छोड़ा था। लेकिन आज जब मैं तुम्हें देखता हूं, तो महसूस करता हूं कि मेरा प्यार अब भी जिंदा है। रिया, मैं तुम्हें माफ करता हूं, लेकिन इस बार मैं चाहता हूं कि हम दोनों मिलकर हर मुश्किल का सामना करें।"

रिया की आंखों में आंसू आ गए। उसने हल्की मुस्कान के साथ कहा,
"मुझे यकीन है, आर्यन। इस बार मैं पीछे नहीं हटूंगी।"


---

एक नई शुरुआत

उनकी बातों के साथ पुराने गिले-शिकवे खत्म हो गए। आर्यन और रिया ने अपनी जिंदगी को एक नई शुरुआत देने का फैसला किया। इस बार उनका प्यार मजबूती से खड़ा था, हर चुनौती का सामना करने के लिए तैयार।
 

आसिफा

Family Love 😘😘
122
249
44
तुम मेरे हो – अध्याय 5

आर्यन और रिया ने भले ही अपने रिश्ते को एक नई शुरुआत दी थी, लेकिन प्यार के रास्ते हमेशा आसान नहीं होते। उनके सामने अब भी कई चुनौतियां थीं, और दोनों को मिलकर उन पर खरा उतरना था।

पहला कदम – परिवार का सामना

आर्यन ने सबसे पहले अपनी मां को रिया के बारे में दोबारा बताने का फैसला किया। वह जानता था कि उनकी पहली प्रतिक्रिया अहम होगी।

"मां, मैं आपको रिया से मिलाना चाहता हूं। वह फिर से मेरे जीवन में वापस आ गई है, और इस बार हम दोनों अपने रिश्ते को सही तरीके से निभाना चाहते हैं," आर्यन ने कहा।

आर्यन की मां कुछ पल के लिए चुप रहीं, फिर बोलीं,
"तुम जानते हो, बेटा, मैं तुम्हारे लिए सिर्फ खुशी चाहती हूं। अगर तुम मानते हो कि रिया तुम्हारे लिए सही है, तो मैं उसे एक और मौका देने को तैयार हूं।"

आर्यन ने राहत की सांस ली।
"थैंक यू, मां। मुझे यकीन है, आप उसे पसंद करेंगी।"


---

रिया की चुनौती

दूसरी तरफ, रिया को अपने परिवार को भी समझाना था। उसकी मां अब भी बीमार थीं, और उसका भाई अपनी पढ़ाई के बीच में था। रिया के लिए सबसे बड़ी चुनौती यह थी कि वह उन्हें यह यकीन दिला सके कि उसका प्यार उसकी जिम्मेदारियों के आड़े नहीं आएगा।

"मां, मैं आर्यन से दोबारा मिल रही हूं। इस बार मैं अपने फैसले को लेकर पूरी तरह से गंभीर हूं। लेकिन मैं वादा करती हूं कि आपकी देखभाल और घर की जिम्मेदारियों में कोई कमी नहीं आएगी," रिया ने अपनी मां से कहा।

रिया की मां ने मुस्कुराते हुए कहा,
"बेटा, अगर तुम खुश हो, तो मैं भी खुश हूं। मैंने हमेशा तुम्हारी भलाई चाही है। बस याद रखना, प्यार और जिम्मेदारियों के बीच संतुलन बनाना जरूरी है।"


---

आर्यन और रिया का साथ

अब जब परिवार की सहमति मिल चुकी थी, आर्यन और रिया ने अपने भविष्य की योजना बनानी शुरू की। आर्यन ने रिया से कहा,
"मैं चाहता हूं कि तुम भी अपने सपनों को पूरा करो। अगर तुम्हें अपने एनजीओ का विस्तार करना है, तो मैं तुम्हारे साथ हूं।"

रिया ने उसकी ओर देखा और कहा,
"और मैं चाहती हूं कि तुम अपने बिजनेस पर ध्यान दो। हम दोनों साथ मिलकर सब कुछ कर सकते हैं।"

उनके शब्दों में विश्वास था।


---

एक नई मुश्किल

लेकिन उनकी खुशियों का रास्ता हमेशा सीधा नहीं हो सकता था। आर्यन के बिजनेस पार्टनर को रिया के बारे में पता चला और उसने इसे आर्यन के खिलाफ इस्तेमाल करने की योजना बनाई। उसने अपने क्लाइंट्स के सामने झूठी अफवाहें फैलानी शुरू कर दीं कि रिया सिर्फ आर्यन के पैसे और स्टेटस के लिए उसके पास वापस आई है।

जब यह बात आर्यन तक पहुंची, तो वह गुस्से में था। उसने सीधे अपने पार्टनर का सामना किया।

"तुमने ऐसा क्यों किया?" आर्यन ने गुस्से में पूछा।

पार्टनर ने ठंडी हंसी के साथ जवाब दिया,
"मैंने वही किया जो मुझे सही लगा। तुम्हारी भावनाएं तुम्हारे बिजनेस को नुकसान पहुंचा सकती हैं।"

आर्यन ने सख्त लहजे में कहा,
"तुम्हारी सोच गलत है। मैं अपने प्यार और अपने काम, दोनों को संभाल सकता हूं। अगर तुम इसे नहीं समझ सकते, तो हमें अलग रास्ते चुनने होंगे।"


---

रिया का समर्थन

जब रिया को इस घटना के बारे में पता चला, तो उसने आर्यन से कहा,
"मैं नहीं चाहती कि तुम्हें मेरे कारण किसी भी मुश्किल का सामना करना पड़े। अगर तुम्हें लगता है कि हमारा रिश्ता तुम्हारे काम के आड़े आ रहा है, तो मैं पीछे हटने को तैयार हूं।"

आर्यन ने उसकी बात काटते हुए कहा,
"रिया, यह लड़ाई सिर्फ तुम्हारी या मेरी नहीं है। यह हमारे प्यार की लड़ाई है। और मैं इसे हर हाल में जीतना चाहता हूं।"

रिया की आंखों में आंसू आ गए। वह जानती थी कि आर्यन सचमुच उससे प्यार करता है।


---

एकजुटता का प्रदर्शन

आर्यन और रिया ने मिलकर एक चैरिटी इवेंट का आयोजन किया, जहां उन्होंने अपने रिश्ते और अपने काम को लेकर लोगों के सामने अपनी सच्चाई पेश की। उन्होंने दिखाया कि प्यार और प्रोफेशन एक साथ संतुलित किए जा सकते हैं।

इस इवेंट के बाद, न केवल लोगों की सोच बदली, बल्कि आर्यन और रिया के रिश्ते को भी समाज से समर्थन मिला।


---

अंत में...

प्यार की ताकत ने हर मुश्किल को पार कर लिया। आर्यन और रिया ने सीखा कि जब दो लोग एक-दूसरे के लिए सच्चे हों, तो कोई भी चुनौती बड़ी नहीं होती।

उन्होंने साथ में अपनी जिंदगी की नई कहानी लिखनी शुरू
कर दी—जहां प्यार, विश्वास, और समर्पण ने हर बाधा को पार कर लिया।

तुम मेरे हो – समाप्त।
 
Top