Gajab ka update hai Komal ji. Mujhe apne teenage ki yaad dila di jab aisi masti hua karti thi nanihaal me.

उफ़ क्या बात कही है आपनेउफ़ उफ़ उफ़ मदकता का दूसरा नाम कही गुड्डी तो नही. क्या जबरदस्त सीन लिखा है.
अपना खुटा दिखा कर आनंद बाबू गुड्डी से पूछ रहे है. हे डर तो नही गई. अरे आनंद बाबू वो गुड्डी है. बनारस वाली. डरती नही. पार तुम्हारा खुटा तो उसका सोना सा प्यारा सा मुन्ना है. जो उसी का है. तो कैसे डरेगी.
गुड्डी का पिछवाडा देख कर लेने का मन कर रहा है बाबू का. पर जैसे उसे पता चल गई. वो तो बिना बोले ही समझ जाती है. और सीधा बोल भी दीं. लेकिन फिर भी डबल मिनिंग मे. हे फिर मत कहना. वाओ.
गुड्डी ने क्या दूसरा राउंड स्टार्ट लिया है. पाहेले राउंड मे यह छूट चूका था. पार तब सायद जरुरी भी नही था. पार प्यार मे अब जैसे वशना घुली है. अमेज़िंग. गुड्डी ने मुँह मे लिया. अब माझा आएगा.
vietnamese letters
आनंद बाबू को पान वाला वो चंदा भाभी वाला सीन याद आ गया. जबरदस्त सीन था. आनंद बाबू को वही पान खिलाया था. अब दोनों ने एक दूसरे के मुँह से वही पान खाया. बहोत जबरदस्त किश उफ.... माझा आ गया.
![]()
असली खेल तो फोरप्ले का ही हैजिओ गुड्डी रानी जिओ. बहोत जबरदस्त फोर प्ले. कोमलजी आप ने तो प्रेम + वासना+ शारारत तीनो को मिक्स कर दिया. कुछ अलग ही एहसास दिया है. बहोत जबरदस्त.
स्टार्टिंग से ही मुख से मुख का क्या जबरदस्त संगम लिखा. उसके बाद जोबन मंथन. ऐसा लगने लगा की आनंद बाबू खेल नही रहे. बल्की गुड्डी खिला रही है. धीरे धीरे सरकती नाभि और फिर योनि चुम्बन. क्या खूबसूरती से लिखा. एक एक शब्द सांसे रोकने के लिए काफ़ी है.
उसके बाद जो वही पान खाने की विधि बताई अति कामुख. मुख रस का मिश्रण और साथ होठो का संगम क्या शानदार लिखा है. मुझे नाभि चूमने वाला सीन बहोत कामुख लगा.
मज़ेदार तो आप ने लास्ट वाला डायलॉग लिखा. इतना बड़ा. बीते से भी बड़ा है. अब गुड्डी रानी तू ही तो घोटने के लिए मारी जा रही थी. नजाने कब से इंतजार कर रही थी. बहोत पहले आनंद बाबू को मौका भी दिया ना. अच्छा हुआ तब नही किया. आनंद बाबू... मेने पूरा नही डाला. अब देखते है आगे.
![]()
आभारवाह कोमल जी
कहानी तो और भी शानदार निखार पर है।
आप तो समां बांध कर रख देती हो।
अगले अपडेट का इंतजार रहेगा।
सादर
मुझे इन्तजार रहेगा।
बहुत बहुत आभार, धन्यवादHamesha ki tarah lajawab update.....
शब्दों और भावनाओं को बहुत अच्छी पकड़ है आपकी![]()
तभि तो यह कहानी मोहे रंग दे और JKG दोनों का मिश्रण है.असली खेल तो फोरप्ले का ही है
और अब जब एक राउंड हो चुका था, डर झिझक लाज कहीं दूर बिस्तर की चादर की तरह सरक कर अलग हो गए थे, देह सुख के नए पन्ने खुल रहे थे। गुड्डी जानती थी बालम तो उसका एकदम बुद्धू है, चाहे उसकी जिंदगी की कमान हो या बिस्तर पर कमान हो, सम्हालनी उसे पड़ेगी

बिलकुल कोमलजी. छुट्टी आते ही मै तुरंत कम बेक करुँगी.मुझे इन्तजार रहेगा।
मुझे मालूम है पहली फुर्सत में आप न सिर्फ मेरी तीनो कहानियां पढेंगी बल्कि विस्तार से कैसी लगी ये भी बताएंगी,
अगली पोस्ट, थ्रिलर के साथ जल्द
