Cooldude1986
Supreme
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उसके बाद मम्मी वॉशरूम से बाहर आई ,मै तुरंत अपने सोफे पर जाकर बैठ गया और टीवी देखने लगा ।
लेकिन मै भ्रम में था ,मुझे वॉशरूम के पास से जाते हुए मम्मी ने देख लिया था और मुझसे बोली_ क्या हुआ पेशाब लगी है क्या ?
मै_ नहीं तो मम्मी,नहीं लगी है।
मम्मी _ तो फिर अभी वॉशरूम के गेट पर क्यों खड़े थे।
मै_ (झेंपकर) वो वो वो मै ऐसे ही गया था , दरवाजा खुला था मैने सोचा बंद कर दूं ,लेकिन अंदर आप थी ।
मम्मी _ अच्छा, दरवाजा बंद करने गए थे या दरवाजा देखने गए थे ,जो खुला हुआ था ।
मै_ मम्मी मैं खुले हुए दरवाजे को देखकर ,उसे बंद करने ही गया था ।
मम्मी _ बेटा, मम्मी हूं तुम्हारी , सब समझती हूं , चलो कोई बात नहीं ,तुम एक काम करो ,बिस्तर लगा हुआ है ,अंदर चक्कर लेटो, मै अभी बर्तन साफ करके आती हूं ।
(मै फिर जाकर अंदर बिस्तर में कंबल उड़कर लेट गया, कुछ समय बाद मम्मी भी आ गई , और अपना दुपट्टा हटाकर ,कमरे की लाईट बंद करके मेरे बगल में लेट गई)
मैं_ मम्मी हो गया सब काम ।
मम्मी _ नहीं अभी घर का ही गया ,हमारा रह गया है।
मै _ मतलब।
मम्मी _ अरे कुछ नहीं बाबा, बस ऐसे ही कह रही हूं, मजाक में ।
मै_ मम्मी आज आप इस सूट में भी बहुत अच्छी लग रही हो।
मम्मी _ सच में , बस तुम्हे अच्छा लगे, लेकिन ये थोड़ा पुराना हो गया और टाइट भी हो गया है, पूरा शरीर दवा रहता है इसमें आज पहन लिया , गर्मियों में तो पहना नहीं जाएगा ।
मैं _ मम्मी कहां टाईट है , अच्छा खासा तो है ।
मम्मी _ (मेरा हाथ पकड़ कर अपने पेट पर रखकर बोली) ये देखो यहां से कितना टाइट है , और ऊपर हाथ बढ़ाकर देखो और टाइट है।
मै_ (धीरे धीरे मम्मी के पेट को सहलाते हुए ,अपना हाथ मम्मी के दूधो के पास ले गया)हां मम्मी यहां थोड़ा टाइट है ,लेकिन ये कमी सूट की नहीं है आपकी है ,आपके ये इतने बड़े है ,इसलिए ये सूट टाईट लग रहा है आपको।
मम्मी _ नहीं ,ऐसा नहीं है, मै पहले भी तो ऐसी ही थी ,अब थोड़ी सी मोटी हो गई हूं , कोई बात नहीं ठंड भर ये पहन ले रही हूं ,फिर बाद में नहीं पहनूंगी ,वैसे भी कमरे में ठंड कहां लगती है यहां, सब कपड़े निकाल के भी सो जाओ तो भी कोई दिक्कत नहीं।
फिर मम्मी बोली एक बात बताओ आज तुम शहर से मेरे लिए क्या लेकर आए मुझे न तो बताया और न ही दिखाया , बहुत गलत बात है तुम्हारी ,हमने तुम्हे अपने दिल की सब बाते बता दी कि ये सामान ले लो अपने लिए , हमारी बारी आई तो हमे बताया तक नहीं।
मै_ (मम्मी के पास और चिपक गया और उनके पास अपना मुंह ले जाकर बोला ) मम्मी मै आपके लिए जो भी लाया हूं ,वो पता नहीं आपको पसंद आयेगा या नहीं , इसलिए सोच रहा हूं बताऊं या नहीं।
मम्मी _ तुम्हारी लाई कोई भी चीज मुझे स्वीकार है, दिल से , चाहे कुछ भी हो , इतना तो प्यार करती हूं अपने बेटे से मै।
मै_ मम्मी, मै जो आपके लिए लाया हूं ,वो कल शाम को आप पहनकर दिखाना मुझे ,मुझे अब भी बोलने में शर्म आ रही है ,मै कल निकल के रख दूंगा बाहर ,फिर आप अपने आप देख लेना ,अगर आपको पसंद न हो तो मत पहनना , आपकी खुशी में ही मेरी खुशी है।
मम्मी _ अरे पगलू, ये कहो कि तुम्हारी खुशी में ही मेरी खुशी है ,कोई बात नहीं जो भी लाए हो वो रख देना ,मै पहन कर दिखा दूंगी कल । ऐसा न हो को पहनने वाली चीज ऐसी हो जो बाहर से दिखे ही न फिर मै क्या करूंगी ?
मै_ नहीं मम्मी,पहनने वाली चीज ऐसी है ,जिसे बाहर से देखने पर अंदर तक का दिखेगा ।
(इतना कहते हुए मैने अपने खड़े हुए लन्ड को मम्मी की दोनों जांघों के बीच में घुसाने के लिए हल्का धक्का दिया , मम्मी ने भी इशारे को समझ कर अपनी दोनों टांगो के बीच थोड़ी जगह दे दी ,जिससे मै उनकी बुर के सेंटर पर अपने लन्ड को रख कर रगड़ सकूं)
मम्मी_ कोई बात नहीं ,तुम्हारे अलावा और कौन है जो मुझे देखेगा ,मै पहन लूंगी कल , तुम्हें जो अच्छा लगे ,मै वैसा ही करुंगी ,और कहकर मुझे दोनों हाथों से अपनी बाहों में भर लिया और मेरे गाल पर एक हल्के से कट कर दिया अपने दातों से।
(मम्मी के इस प्रहार से मै तो पागल हो गया सोचने लगा अभी इसकी दोनों टांगे फैलाकर अपने लन्ड को इसकी बुर में घुंसा दूं और दोनों दूधों को मुंह में लेकर खूब चूसूँ)
मैने मौका देखकर मम्मी को भींकस कर पकड़ लिया अपने अपने लड़ का दबाव मम्मी की बुर पर लगाने लगा, फिर मम्मी को समझ में आ गया कि ऐसे मेरा लन्ड उनके किसी भी छेद तक ठीक से नहीं पहुंचेगा ,तो उन्होंने कहा बेटा अगर दिक्कत हो रही हो तो मै अपना मुंह आगे कर लूं फिर तुम पीछे से पकड़ कर लेट जाना , मै समझ गया मम्मी मेरा लन्ड अपने गांड़ के रस्ते अपनी बुर पर रगड़वाना चाह रही हैं, मैने कहा हां मम्मी आओ उधर मुंह करके लेट जाओ ।फिर मम्मी ने अपना मुंह आगे किया और अपनी गांड़ पर से अपना सूत हटा कर पूरी गांड़ को मेरे लैंड पर रख दिया मैने भी कसकर अपने खड़े लन्ड को मम्मी की गांड़ की दरार के बीच में रखा सलवार के ऊपर से ही तो मम्मी के मुंह से हल्की सी आह निकल गई ,फिर मम्मी ने अपने दोनों कूल्हों को हिलाकर मेरा लंद पूरा अपनी गांड़ को दरार में डाल लिया और अपनी पीठ को मेरे सीने से चिपका दिया ।
मैं भी अपनी कमर को हल्के हल्के चलाने लगा और उधर मम्मी भी अपनी कमर को धीरे धीरे आगे पीछे खाने लगी , हम दोनों की कमर एक साथ लय में आगे लीची हो रही थी ,फिर मैने अपना एक हाथ मम्मी के पेट पर रखा जिससे मम्मी को और ज्यादा मजा आने लगा।
इस समय हम दोनों को कमर अपने अपने चरम पर एक साथ लहरा रही थी , फिर मैने सोचा आज मम्मी को पहले झड़ जाने दो , फिर मैने अपनी कमर रोक ली, और मम्मी अपनी कमर को बार बार आगे पीछे करते जा रही थी ,
अब उनकी बुर के पास वाली सलवार के हिस्से से चिकनापन भी मेरे लैंड पर महसूस होने लगा मुझे , जिससे मुझे और ज्यादा मजा आने लगा , मुझसे भी ज्यादा शाया मम्मी को मजा आ रहा था जिनकी कमर रुकने का नाम ही नहीं के रही थी और उनकी स्पीड बढ़ती ही जा रही थी, इस समय मम्मी की कमर इतनी तेज थी जैसे वाकई में उनकी चुदाई हो रही हो ।
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कुछ और देर झटके लेने के बाद मम्मी की कमर रुक गई ,और मेरा लन्ड पूरा उनकी बुर के रस से भीग गया गया जिंक्स अंदाजा मैने अपने लन्ड के गीलेपन से लगाया ,जिसमें मेरा भी प्रीकम उनकी बुर के रस में मिक्स था ।और उनका पूरा शरीर मेरे हाथों में था जैसे उनके दौड़ने दूध ,जिन्हें मैने शायद आज बहुत तेज दबाया जब मम्मी अपनी कमर को तेजी से आगे पीछे कर रही थी ।
फिर मैने मम्मी को कसकर पकड़ लिया और कुछ ही समय बाद हम दोनों को आंख लग गई , फिर पता नहीं कहां पर लन्ड था और कहां मम्मी की चूत या भोसड़ा जो अभी तक मैने देखा तक नहीं था ।
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सुबह सुबह जब मेरी आंख खुली तो मै मम्मी के कहने के अनुसार मै रोज जल्दी उठने के बारे में मै सोच रहा था ,लेकिन पेशाब करके दोबारा आकर बिस्तर पे लेट गया , समय करीब 5 बजे का होगा , जब आकर लेता तो देखा कि मम्मी ने अपने दोनों पैर फैला रखे है ,मैने सोचा लाओ मम्मी की बुर की हालत देख लेते हैं , फिर मैने लाइट ऑन की थोड़ा सा कम्बल मम्मी के पैर से हटाया देखा तो मम्मी की बुर की जगह पर बुर और लन्ड के पानी के दाग लगे हैं ,मैने देखने के बाद लाइट बंद कर दी और वापस आकर मम्मी के पास लेट गया ।फिर मैने मम्मी को आवाज दी , मम्मी मम्मी उठो न देखो 5 बज रहे हैं ,फिर मम्मी ने ऊंह हूं,करके मुझे पकड़ लिया और आधी नींद में बोली क्या करना है उठकर अभी बहुत टाइम है ,अभी थोड़ा सा और सो लो।
फिर मुझे पकड़कर लेट गई और अपनी टांग मेरे ऊपर रख दी ,मैने भी मम्मी को अपनी बाहों में भर लिया और उनके गालों को सूंघने लगा , क्या मस्त खुश्बू थी गालों की शायद रात की लिपिस्टिक की भी खुश्बू आ रही थी ।
मेरा मम्मी के गाल पर मुंह से सुंघना मम्मी को अच्छा लग रहा था ।
मम्मी भी अपने सर को हिला हिलाकर इधर उधर अपने गालों को सुंघा रहीं थी मुझे ,फिर मैने अपनी जीभ को हल्के से बाहर निकाला और मम्मी के गालों पर फिराने लगा ,इससे मम्मी ने मुझे और कसकर पकड़ लिया और मेरी जीभ पर अपने गाल को रगड़ने लगी मै भी पूरी मस्ती से मम्मी के गालों को चाट रहा था जैसे कोई कुत्ता चाटता है ।
फिर मम्मी ने कहा _ क्या खा ही जाओगे इन्हें ?
मैने मम्मी के कान के पास अपना मुंह ले जाकर कहा _ मन तो बहुत कर रहा है खाने का ,क्या करूं , आप ही बता दो ?
मम्मी ने लंबी सांस लेकर कहा _ मना नहीं कर रही हूँ पर इन्हें खाने से पेट भर जाएगा ये बताओ ?
मै_ तो फिर किससे पेट भरेगा ?
मम्मी _ इसके अलावा भी बहुत चीजे हैं खाने की ।
मै_ खाने की चीजें तो बहुत हैं पर मुझे अपनी मम्मी ही चाहिए ,खाने के लिए , आपकी हर चीज रस से भरी हुई है ,जहां भी जीभ लगा दो रस निकलने लगता है।
(इतना सुनते ही मम्मी ने अपनी कमर को मेरे लन्ड पर धकेल दिया और , आह ! करके बोली, सब खिला दूंगी धीरे धीरे चिंता मत करो)
मै_ मम्मी जब आप खिलाओगी तब मै भी आपको खिलाऊंगा ,जैसे आपने मुझे रबड़ी खिलाई थी, रबड़ी को तो आपने हाथ से खिलाया अब अगर आप कभी बनाओ तो मुझे बिना हाथ लगाए खिलाना ।
मम्मी _ बिना हाथ लगाए कैसे खिला सकती हूं,?
मै_ सब खिला सकती हो ,मैने तो सुना है औरतें बिना हाथ लगाए आदमी को दूध पिला सकती हैं ,तो रबड़ी क्यों नहीं खिला सकती।
मम्मी को शायद मेरी बात समझ में आ गई और बोली हां बात तो सही है तुम्हारी ,कोई नहीं जिस दिन बनाऊंगी उस दिन बिना हाथ लगाए ही खिलाऊंगी लेकिन उस दिन तुम खा नहीं पाओगे सिर्फ चाट सकते हो
मै_ कोई बात नहीं मम्मी मै चाटने के लिए तैयार हूं ,आप जैसे भी चटवाए।
मम्मी ने इतना सुनते ही मुझे कस के पकड़ा और में गालों पर किस कि बरसात शुरू कर दी मै भी कहां पीछे रहने वाला था मैने भी मम्मी के गालों पर और कभी कभी होठ पर किस करनी शुरू कर दी ।
फिर करीब 15 मिनट बाद मम्मी उठने के लिए हुई तो मैने उन्हें पकड़ कर कहा अभी कहां जा रही हो थोड़ी देर और रुक जाओ न, इस पर मम्मी बोली पूरे दिन रात तुम्हारे साथ रहती हूं और तुम्हारे ही साथ सोती हूं ,अभी घर का काम काज कर लेने दो बाकी का बाद में करना जो करना हो।
मै_ बाकी का आप करने ही कहां देती हो ?
मम्मी _ मेरे आंखों में देखकर बोली, मैने मन कब किया है बाकी का काम करने के लिया ,जब मन हो तब कर लेना ,मै हमेशा तुम्हारे लिए तैयार हूं ।
मैने मम्मी के होठों पर हल्के से किस किया और दोनों हाथों से हल्के से उनके दूधो को दबा दिया , फिर मम्मी उठकर अपने घर की साफ सफाई में लग गई।
(मम्मी झाड़ू लगाते हुए , अपनी मोटी गांड़ को दिखाते हुए)
(मम्मी पोछा लगते हुए कमरे में)
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फिर आधे घंटे तक मै ऐसे की मम्मी को कम करते करते देखकर अपने लन्ड को सहलाने लगा ,कभी उनके दोनों दूध देखता कभी उनकी मोटी मस्त गांड़ जो झुकने पर दिखाई देती, जब भी मम्मी उठती तो उनकी सलवार और सूट उनकी गांड़ को दरार में घुस जाता ।
ये सब देखकर मै अपने लन्ड को बहुत मस्ती में हिला रहा था कम्बल के अंदर ,मुझे ये तक पता नहीं रहा कि मै हिला किसको देख कर रहा हूं ,और मेरा कंबल है कहां , मतलब कंबल कब ऊपर से हट गया पता ही नहीं चला और मैं लगातार अपने लन्ड को हाथ में लेकर आंख बंद किए हुए मम्मी के बारे में सोचकर अपने लन्ड को सहलाए जा रहा था ।
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मम्मी पता नहीं ये सब कबसे देख रही थी , और मैं अपनी मस्ती में खोया हुआ था ।
फिर मम्मी को लगा जैसे कि मेरा निकलने वाला है क्योंकि मेरे हाथों की स्पीड तेज होने लगी थी ,तभी मम्मी ने मुझे आवाज दी और मैं चौक कर उठा ,देखा तो मेरा कंबल अलग पड़ा है और मेरा लन्ड मेरे हाथ में है ,मैने उसी वक्त मम्मी को आवाज दी हां मम्मी,क्या हुआ ?
मम्मी _ हुआ कुछ नहीं ,अगर फ्री हो गए हो तो बाहर आ जाओ , कमरे से ।
मै_ हां मम्मी आ रहा हूं ।।
फिर मै कमरे से बाहर आया ,तो मम्मी बाहर बरामदे में खड़ी थी और मुझे देखकर मुस्कुरा रही थी, कभी कभी वो मेरे लैंड के ऊपर भी नजर डाल देती थी ,पर मै तो जैसे अंजान था मुझे लगा मम्मी को क्या पता मैने क्या किया है?
फिर मम्मी बोली अपनी सेहत का ख्याल रखा करो , थोड़ा बहुत बाहर भी घूम किया करो ,सुबह सुबह अच्छा लगता है ,फिर मैने अपने कपड़े पहने और घर से बाहर घूमने के लिए जाने लगा ।
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#दूसरे अध्याय के कुछ पल#
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जैसे ही मै घर से बाहर निकला तो देखा कि मेरी पड़ोस वाली मेरी मौसेरी बहन कह लो या भाभी कह लो ,लेकिन रिश्ते में तो पहले बहन ही है ,भाभी बाद में बनी , दरवाजे पर खड़ी थी जैसे मेरे आने के ही इंतजार कर रही हो ।
फिर मुझे देखकर थोड़ा मुस्कुराई बदले में मै भी हल्के से मुस्कुरा दिया ,आज पता नहीं कैसे उसने मुझसे कह ही दिया_कहां चल दिए सुबह सुबह।
मै_ बस सड़क को तरफ घूमने जा रहा हूं ।
बहन_ मुस्कुरा कर बोली , कभी कभी छत पर भी घूम किया करो।
मै_ मुस्कुरा के चला गया , मैने सोचा एक बार पीछे मुड़कर देखूं है या अंदर चली गई ,वही हुआ जो कई सोच रहा था , वो अब भी वही खड़ी थी शायद उसे पता था कि मैं उसे मुड़कर जरूर देखूंगा , फिर उसने हाथ से बाय का इशारा किया और अपने दोनों हाथों को मोड़कर अपने सर पर रख किया , उसका ये रूप देखकर एक बार को मेरे कदम ठहर गए फिर,मै मुस्कुरा के आगे बाद गया ।
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आज पता नहीं वो मुझे इतनी सेक्सी दिख रही थी जैसे अभी चोदवाने को तैयार हो , बस कोई उसे जाकर चोद दे ।
मुझे भी ऐसा लग रहा था कि पहले तो वह बिल्कुम सदा सिंपल रहती थी जब से मैने गौर किया है तबसे उसने लगता है मेकअप करना स्टार्ट कर दिया हो, खैर मै घंटे भर के बाद घुमाकर अपने घर वापस आ गया।
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मै जाकर अपने कपड़े निकल कर नहाने को बाथरूम में चक गया ,जब नहा किया तो देखा आज मेरे नेकर और बनियान बाथरूम में नहीं हैं , मैने मम्मी से पूछा मम्मी मेरे नेकर बनियान कहां है?
मम्मी _ आज तो वो नहीं मिलेंगे , आज तुम वो पहनोगे जो मेरी मर्जी होगी ।
फिर मम्मी ने मुझे वही नेकर लाकर दिया जो ट्रांसपेरेंट वाला मैने खरीदा था , और वही ट्रांसपेरेंट वाली बनियान ।
और हल्के से मेरे गाल पर चिकोटी काट दी अपने हाथ से और मुस्कुरा कर वापस रसोई में चली गई ।
मै नेकर बनियान पहना और पहना कर सोचा मम्मी के पास चलते हैं फिर मै पहनकर मम्मी के पास आया ,और मम्मी से पूछा मम्मी कैसा लग रहा है ये वाला ।
मम्मी ने देखा मेरा पूरा लन्ड बाहर से लगभग 75% दिख रहा है, उसे देखकर बोली ,मुझे तो सुबह से ही अच्छा लग रहा है ,अब तो और ज्यादा अच्छा दिख रहा है मेरा बेटा।
मै_ (समझ गया आज मम्मी ने सुबह मेरा कांड देख लिया था) मम्मी मुझे भी ये पहनकर अच्छा फील हो रहा है ,ऐसा लग रहा है जैसे कोई कपड़ा नहीं पहने हूं, लेकिन मम्मी ऐसा न हो राम में ठंड लगे ।
मम्मी _अरे मम्मी के होते हुए ठंड मेरे बेटे को छू भी नहीं पाएगी , बिलकुल नहीं लगेगी ,
(फिर मम्मी ने नाश्ता लगाया और मै नाश्ता करके , मम्मी के गले लगकर अपने काम के लिए जाने लगा, और जब जाने को हुआ तभी याद आया कि मम्मी की ट्रांसपेरेंट नाइटी भी निकल के रखनी है जिसे आज मम्मी को पहनाना है शाम को ,फिर मैने मम्मी की नाइटी निकल के आलमारी से बाहर बेड पर रख दी और उसके बाद मै घर से निकलने लगा)
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घर से जैसे ही बाहर निकला मेरी पड़ोस वाली बहन नहा धोकर सज सवर कर मेरा इंतजार कर रही थी और हल्के हल्के मुझे देखकर मुस्कुराने लगी
मैने भी मन बना लिया कि अब मम्मी से पहले इसकी चढ़ाई करनी है , इसको पेलना है , बस फिर क्या था मैने भी धीरे धीरे डोरे डालना शुरू कर दिए ।
और उसे देखकर मुस्कुरा कर आगे चला गया।
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Mast updateगतांक से आगे _________________________
उसके बाद मम्मी वॉशरूम से बाहर आई ,मै तुरंत अपने सोफे पर जाकर बैठ गया और टीवी देखने लगा ।
लेकिन मै भ्रम में था ,मुझे वॉशरूम के पास से जाते हुए मम्मी ने देख लिया था और मुझसे बोली_ क्या हुआ पेशाब लगी है क्या ?
मै_ नहीं तो मम्मी,नहीं लगी है।
मम्मी _ तो फिर अभी वॉशरूम के गेट पर क्यों खड़े थे।
मै_ (झेंपकर) वो वो वो मै ऐसे ही गया था , दरवाजा खुला था मैने सोचा बंद कर दूं ,लेकिन अंदर आप थी ।
मम्मी _ अच्छा, दरवाजा बंद करने गए थे या दरवाजा देखने गए थे ,जो खुला हुआ था ।
मै_ मम्मी मैं खुले हुए दरवाजे को देखकर ,उसे बंद करने ही गया था ।
मम्मी _ बेटा, मम्मी हूं तुम्हारी , सब समझती हूं , चलो कोई बात नहीं ,तुम एक काम करो ,बिस्तर लगा हुआ है ,अंदर चक्कर लेटो, मै अभी बर्तन साफ करके आती हूं ।
(मै फिर जाकर अंदर बिस्तर में कंबल उड़कर लेट गया, कुछ समय बाद मम्मी भी आ गई , और अपना दुपट्टा हटाकर ,कमरे की लाईट बंद करके मेरे बगल में लेट गई)
मैं_ मम्मी हो गया सब काम ।
मम्मी _ नहीं अभी घर का ही गया ,हमारा रह गया है।
मै _ मतलब।
मम्मी _ अरे कुछ नहीं बाबा, बस ऐसे ही कह रही हूं, मजाक में ।
मै_ मम्मी आज आप इस सूट में भी बहुत अच्छी लग रही हो।
मम्मी _ सच में , बस तुम्हे अच्छा लगे, लेकिन ये थोड़ा पुराना हो गया और टाइट भी हो गया है, पूरा शरीर दवा रहता है इसमें आज पहन लिया , गर्मियों में तो पहना नहीं जाएगा ।
मैं _ मम्मी कहां टाईट है , अच्छा खासा तो है ।
मम्मी _ (मेरा हाथ पकड़ कर अपने पेट पर रखकर बोली) ये देखो यहां से कितना टाइट है , और ऊपर हाथ बढ़ाकर देखो और टाइट है।
मै_ (धीरे धीरे मम्मी के पेट को सहलाते हुए ,अपना हाथ मम्मी के दूधो के पास ले गया)हां मम्मी यहां थोड़ा टाइट है ,लेकिन ये कमी सूट की नहीं है आपकी है ,आपके ये इतने बड़े है ,इसलिए ये सूट टाईट लग रहा है आपको।
मम्मी _ नहीं ,ऐसा नहीं है, मै पहले भी तो ऐसी ही थी ,अब थोड़ी सी मोटी हो गई हूं , कोई बात नहीं ठंड भर ये पहन ले रही हूं ,फिर बाद में नहीं पहनूंगी ,वैसे भी कमरे में ठंड कहां लगती है यहां, सब कपड़े निकाल के भी सो जाओ तो भी कोई दिक्कत नहीं।
फिर मम्मी बोली एक बात बताओ आज तुम शहर से मेरे लिए क्या लेकर आए मुझे न तो बताया और न ही दिखाया , बहुत गलत बात है तुम्हारी ,हमने तुम्हे अपने दिल की सब बाते बता दी कि ये सामान ले लो अपने लिए , हमारी बारी आई तो हमे बताया तक नहीं।
मै_ (मम्मी के पास और चिपक गया और उनके पास अपना मुंह ले जाकर बोला ) मम्मी मै आपके लिए जो भी लाया हूं ,वो पता नहीं आपको पसंद आयेगा या नहीं , इसलिए सोच रहा हूं बताऊं या नहीं।
मम्मी _ तुम्हारी लाई कोई भी चीज मुझे स्वीकार है, दिल से , चाहे कुछ भी हो , इतना तो प्यार करती हूं अपने बेटे से मै।
मै_ मम्मी, मै जो आपके लिए लाया हूं ,वो कल शाम को आप पहनकर दिखाना मुझे ,मुझे अब भी बोलने में शर्म आ रही है ,मै कल निकल के रख दूंगा बाहर ,फिर आप अपने आप देख लेना ,अगर आपको पसंद न हो तो मत पहनना , आपकी खुशी में ही मेरी खुशी है।
मम्मी _ अरे पगलू, ये कहो कि तुम्हारी खुशी में ही मेरी खुशी है ,कोई बात नहीं जो भी लाए हो वो रख देना ,मै पहन कर दिखा दूंगी कल । ऐसा न हो को पहनने वाली चीज ऐसी हो जो बाहर से दिखे ही न फिर मै क्या करूंगी ?
मै_ नहीं मम्मी,पहनने वाली चीज ऐसी है ,जिसे बाहर से देखने पर अंदर तक का दिखेगा ।
(इतना कहते हुए मैने अपने खड़े हुए लन्ड को मम्मी की दोनों जांघों के बीच में घुसाने के लिए हल्का धक्का दिया , मम्मी ने भी इशारे को समझ कर अपनी दोनों टांगो के बीच थोड़ी जगह दे दी ,जिससे मै उनकी बुर के सेंटर पर अपने लन्ड को रख कर रगड़ सकूं)
मम्मी_ कोई बात नहीं ,तुम्हारे अलावा और कौन है जो मुझे देखेगा ,मै पहन लूंगी कल , तुम्हें जो अच्छा लगे ,मै वैसा ही करुंगी ,और कहकर मुझे दोनों हाथों से अपनी बाहों में भर लिया और मेरे गाल पर एक हल्के से कट कर दिया अपने दातों से।
(मम्मी के इस प्रहार से मै तो पागल हो गया सोचने लगा अभी इसकी दोनों टांगे फैलाकर अपने लन्ड को इसकी बुर में घुंसा दूं और दोनों दूधों को मुंह में लेकर खूब चूसूँ)
मैने मौका देखकर मम्मी को भींकस कर पकड़ लिया अपने अपने लड़ का दबाव मम्मी की बुर पर लगाने लगा, फिर मम्मी को समझ में आ गया कि ऐसे मेरा लन्ड उनके किसी भी छेद तक ठीक से नहीं पहुंचेगा ,तो उन्होंने कहा बेटा अगर दिक्कत हो रही हो तो मै अपना मुंह आगे कर लूं फिर तुम पीछे से पकड़ कर लेट जाना , मै समझ गया मम्मी मेरा लन्ड अपने गांड़ के रस्ते अपनी बुर पर रगड़वाना चाह रही हैं, मैने कहा हां मम्मी आओ उधर मुंह करके लेट जाओ ।फिर मम्मी ने अपना मुंह आगे किया और अपनी गांड़ पर से अपना सूत हटा कर पूरी गांड़ को मेरे लैंड पर रख दिया मैने भी कसकर अपने खड़े लन्ड को मम्मी की गांड़ की दरार के बीच में रखा सलवार के ऊपर से ही तो मम्मी के मुंह से हल्की सी आह निकल गई ,फिर मम्मी ने अपने दोनों कूल्हों को हिलाकर मेरा लंद पूरा अपनी गांड़ को दरार में डाल लिया और अपनी पीठ को मेरे सीने से चिपका दिया ।
मैं भी अपनी कमर को हल्के हल्के चलाने लगा और उधर मम्मी भी अपनी कमर को धीरे धीरे आगे पीछे खाने लगी , हम दोनों की कमर एक साथ लय में आगे लीची हो रही थी ,फिर मैने अपना एक हाथ मम्मी के पेट पर रखा जिससे मम्मी को और ज्यादा मजा आने लगा।
इस समय हम दोनों को कमर अपने अपने चरम पर एक साथ लहरा रही थी , फिर मैने सोचा आज मम्मी को पहले झड़ जाने दो , फिर मैने अपनी कमर रोक ली, और मम्मी अपनी कमर को बार बार आगे पीछे करते जा रही थी ,
अब उनकी बुर के पास वाली सलवार के हिस्से से चिकनापन भी मेरे लैंड पर महसूस होने लगा मुझे , जिससे मुझे और ज्यादा मजा आने लगा , मुझसे भी ज्यादा शाया मम्मी को मजा आ रहा था जिनकी कमर रुकने का नाम ही नहीं के रही थी और उनकी स्पीड बढ़ती ही जा रही थी, इस समय मम्मी की कमर इतनी तेज थी जैसे वाकई में उनकी चुदाई हो रही हो ।
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कुछ और देर झटके लेने के बाद मम्मी की कमर रुक गई ,और मेरा लन्ड पूरा उनकी बुर के रस से भीग गया गया जिंक्स अंदाजा मैने अपने लन्ड के गीलेपन से लगाया ,जिसमें मेरा भी प्रीकम उनकी बुर के रस में मिक्स था ।और उनका पूरा शरीर मेरे हाथों में था जैसे उनके दौड़ने दूध ,जिन्हें मैने शायद आज बहुत तेज दबाया जब मम्मी अपनी कमर को तेजी से आगे पीछे कर रही थी ।
फिर मैने मम्मी को कसकर पकड़ लिया और कुछ ही समय बाद हम दोनों को आंख लग गई , फिर पता नहीं कहां पर लन्ड था और कहां मम्मी की चूत या भोसड़ा जो अभी तक मैने देखा तक नहीं था
Bhout hi mast jaa rahe ho bhai_______________गतांक से आगे___________________ _____________________________________________
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सुबह घर से निकलने के बाद मै सीधा अपनी डेयरी पर चला गया , वहां पहुंचकर अपने काम काज में लग गया ,दोपहर को मम्मी का फोन आया कि मै घर पर खाना खाने आ रहा हूं या नहीं ,मैने मम्मी से मना कर दिया कि आप खा लो मै अब शाम को ही आकर खाऊंगा ।
इधर मेरा बिजनेस भी अच्छा चल रहा था और उधर मेरी जिंदगी भी अच्छी चल रही थी ।किसी भी तरह की कोई परेशानी नहीं थी, लेकिन कहते हैं न ज्यादा सुकून इन्सान को परेशान कर देता है मुझे भी ऐसा ही लग रहा था ,लेकिन शायद मेरी किस्मत में भी कुछ और ही लिखा था ,जिसका जिक्र मै आप सबसे बाद में करूंगा ,फिलहाल अभी कहानी को आगे बढ़ाते हैं ।
फिर दोपहर को काम निपटानें के बाद मै थोड़ा आराम करने अपने कमरे में चला गया ,सोचा थोड़ा लेट लिया जाए ,ताकि शरीर को भी आराम मिल जाए , मै लेटकर फोन चलाने में व्यस्त था ,तभी लगभग 3 बजे के आस पास मम्मी का वीडियो कॉल आया ,और बोली_ क्या बात है फोन करना ही छोड़ दिया तुमने तो , लगता है प्यार कम हो गया है।
मै_ नहीं मम्मी ऐसा नहीं है बस लेटा हुआ था आराम कर रहा था , याद तो आपकी ही आ रही थी ।
मम्मी _ एक सरप्राइज़ है तुम्हारे लिए ,सोच कर बताओ क्या होगा?
मै_ ध्यान से बिल्कुल उतर गया ,तभी अचानक याद आया , मम्मी को नई ट्रांसपेरेंट मैक्सी लाकर दी है ,शायद वही पहनी होगी, मैने कहा मम्मी थोड़ा कैमरा नीचे करो फिर सरप्राइज़ दिख जाएगा ।
मम्मी _ क्या बात है ,पता है , की मै क्या देने वाली हूँ।
मै_ मुझे आपकी हर बात पता रहती है कि किस टाइम आप क्या दोगी मुझे ,आखिर मोहब्बत है अपनी मम्मी से ।
मम्मी _ लो देख लो ।
मैं_ मम्मी ये तो मैने आपको नहीं दी ये कहा से आई?
मम्मी _ ये आई कही से नहीं है मैने अपनी साड़ी को काटकर बनाया है ,ये बताओ कैसी लग रही है?
मै_ बहुत अच्छी है, और इसमें तो आपकी टांगें मस्त लग रही हैं ।
मम्मी _ खाली टांगें ,और क्या ?
मै_और भी सब कुछ अच्छा दिख रहा है ,मस्त हो आप ।
मम्मी_ तुम भी मस्त हो ,सुबह जब तुमने अपने कपड़े पहने थे मस्त लग रहे थे ।
मै_ अच्छा मम्मी शाम को मिलता हूं आपसे ।
मम्मी _ एक बात सुनो आज मैने साड़ी में अपना एक फोटो लिया था कहो तो दिखा दूं ,बताना कैसा लग रहा है , भेज रही हूं ।
मै_ क्या बात है मम्मी,इसमें तो आप मैक्सी से ज्यादा अच्छी दिख रही हों, काश इस समय मै आपके पास होता ।
मम्मी _ अच्छा अगर पास होते तो ?
मै_ अपनी मम्मी से खूब प्यार करता ।
मम्मी _ मैने कब मन किया है ,अभी आ जाओ कर लो।
मै_ अभी तो आपने मैक्सी पहनी है, ये साड़ी कहां पहनी है।
मम्मी _ जब तक तुम घर आओगे तब तक मै इसी तरह से तैयार मिलूंगी , बस आ जाओ।
मै_कोई बात नहीं मम्मी शाम को मिलना,ऐसे ही साड़ी में ,तब आपको सही से देख लूंगा ।
मम्मी _ ठीक है शाम को ये वाली साड़ी पहना लूंगी ,और कुछ नहीं पहनूंगी।
मै_ अरे और कुछ क्यों नहीं पहनूंगी , ब्लाउज नहीं पहनोगी?
मम्मी _ हां मेरा मतलब ,साड़ी ब्लाउज और पेटीकोट,पहन लूंगी , अगर और कुछ भी पहनना हो तो बता दो अभी
(मै समझ गया मम्मी चड्डी और ब्रा की बात कर रही है)
मै_ नहीं आप सिर्फ यही तीनों पहनना ।
फिर मम्मी ने किस की और मुझे फोटो भेज दिए ।
मैने भी जवाब में मम्मी को किस वाला gifs भेज दिया।
claudia code 3