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Adultery प्यार या धोखा (Completed)

Riky007

उड़ते पंछी का ठिकाना, मेरा न कोई जहां...
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अध्याय 15

मेरे दिमाग में कई सवाल एक साथ मचलने लगे थे,आखिर गौरव का उद्देश्य क्या है,ऐसे उद्देश्य हो भी क्या सकता था,पूर्वी अमीर थी,और बेहद ही सुंदर थी,ऐसी लड़की किसी को भी मिले वो क्यो मना करेगा,और वो भी कमसीन सी ,गौरव की age से इतनी छोटी भी …

सच में गौरव को तो अब भी अपने नसीब में यकीन नही हो रहा होगा की ऐसी लड़की उसे चाहती है,लेकिन साला दुनिया की नजरो में शरीफ बनने वाला गौरव इतना कमीना होगा ये भी कौन सोच सकता होगा,और कौन सोच सकता है की अपने से इतने साल बड़ी मालती से उस्का अफेयर चल रहा होगा…

अब मेरे सामने एक बड़ी दुविधा ये थी की पूर्वी को गौरव से कैसे बचाया जाए,क्या बचाया जाए या नही ,क्योंकि पूर्वी तो खुश थी और उसे शायद कभी गौरव के इरादों का पता भी नही चलेगा,अगर मैं उसे बता भी दु तो क्या वो मानेगी ..

सवाल ही नही उठता,उसे तो यही लगेगा की मैं अब भी उससे दुश्मनी निकाल रही हु ,तो क्या किया जाए??

क्या रोहन को बता दिया जाए..?/

मैं इसी उधेड़बुन में थी,लेकिन मैंने रोहन को भी नही बताने का फैसला किया,क्योंकि वो अभी दुखी था और पूर्वी उससे भी कहा बात कर रही थी..

मुझे एक तीसरा तरीका सुझा क्योना गौरव को उकसाया जाए,ऐसे भी मर्द है ,अपने से इतने साल बड़ी लड़की के साथ अफेयर कर सकता है तो मैं तो जवान थी,और मुझे लड़को को उकसाने में महारत भी हासिल थी,इसी बहाने कुछ ऐसे सुबूत भी इकठ्ठे कर लुंगी जिससे उसकी सच्चाई का दुनिया को पता चले …

मैं कोशिश करने लगी लेकिन साला गौरव ना जाने किस मिट्ठी आ बना था वो पिघलने का नाम ही नही ले रहा था..

क्या उसे सच में पूर्वी से प्यार हो गया था..??

दिमाग तो कहता था की नही ,लेकिन कोई भरोसा भी नही,क्योंकि वो जिस तरह से मुझे इग्नोर कर रहा था ऐसा किसी लड़के ने नही किया था..

आखिर वो दिन आया जब पूर्वी ने गौरव को प्रपोज कर दिया ,मैंने भी अखिरी पत्ता खेल दिया और उसे प्रपोज कर दिया ,उस साले ने हम दोनों को ही ठुकरा दिया…

लेकिन इससे पूर्वी के मन में उसके लिए सम्मान और ही बढ़ गया था ,सच में गौरव पहुचा हुआ खिलाड़ी था,अब तो मैंने रोहन की मदद लेना ही उचित समझा..

“क्या बोल रही हो ,लेकिन यार गौरव तो ऐसा नही लगता “

रोहन मेरी बात सुनकर चौक गया था..

“मेरी आंखे धोखा नही खाती,”

“तुम झूट बोल रही हो ,यार पूर्वी से तुम्हारा कम्पीटिसन है ये समझ आता है लेकिन इसके लिए गौरव को बदनाम करना ठीक नही है “

रोहन की बात सुनकर मैं झुंझला गई

“साले तुझसे झूठ बोलकर मुझे क्या मिलेगा..”

वो भी सोच में पड़ गया..

“हम्म अगर ये सही है तो हम क्या कर सकते है ,यार पूर्वी तो उसके लिए पागल ही है ,और उसे समझना तो पत्थर में सर फोड़ना है ..”

रोहन भी गंभीर था,

“अगर हम उसे सबूत दिखाए तो ..”

“कहा से लाएंगे सबूत ,हम जासूस है क्या,और दुनिया के सामने तो वो कुछ करते नही है ,घर के अंदर घुस कर सबूत लाये क्या “

रोहन की बात से मेरे दिमाग में एक आईडिया आ गया

“सच कहा घर में घुस कर तो सबूत मिल सकता है ना..”

रोहन थोड़ा घबराया

“नही नही यार ये सब मुझसे नही होगा..”

“अबे चूतिये वो तेरी बचपन की दोस्त है उसके लिए इतना नही करेगा ..ऐसे भी अगर उनका ब्रेकअप हुआ तो फायदा तेरा भी है ना,पूर्वी फिर रोने किसके पास आएगी “

मैं जानती थी की रोहन कितना भी बकचोदी कर ले लेकिन प्यार तो उसे भी पूर्वी से है ,वही एक ऐसी लड़की थी जो चाहते हुए भी उसे नही मिली,तो प्यार कहे या कुछ और जो था बहुत ही स्ट्रांग था..

“हम्म क्या करे,कैमरा लगा दे दोनों के घर में ,”

“कैमरा ...हा ये सही आईडिया है,ऐसे मालती मेडम भी गजब की माल है ,उसकी चुदाई देखने में मजा आएगा “

रोहन फिर से कमीनेपन में उतर आया था,जो मेरे लिए सही था,

“चल फिर जुगाड़ करते है …”

*******

वो दोपहर का समय था,गौरव और मालती दोनों ही कालेज में थे,भरे दोपहर में किसी के घर में,सब की नजर से बचकर घुसना आसान काम तो नही था,लेकिन हमे करना ही था…

रोहन ने अपना जुगाड़ लगाया और एक प्रोफेसनल जासूस की मदद ली,अब हम तीन लोग थे जो पहले मालती के घर पहुचे ..

जासूस के लिए ये रोज का काम था,उसने बड़े ही आराम से दरवाजा खोल लिया,और बाथरूम से लेकर बेडरूम में सीक्रेट कैमरा फिट कर दिया,तब तक मैं मालती के घर की घूमने लगी और चीजो को देखने लगी,उसके बेडरूम में उसके कम्प्यूटर के पास मुझे कुछ कागज रखे दिखाई दिए ,उसे पढ़ते ही मैं थोड़ी चौकी ..

मैंने उनके दराजो को खोलना शुरू किया मुझे कुछ फाइल्स मिली ,मेरी आंखे फ़टी की फ़टी रह गई ,मैं धड़ाम से वही बैठ गई थी..

“क्या हुआ ..”रोहन मेरी स्तिथि देखकर चौका गया था,

मैंने फाइल उसकी ओर बढ़ाया ,वो बहुत ही कन्फ्यूज लग रहा था ..

“ये सब ..”मैंने उसे तुरंत ही चुप रहने का इशारा किया और जासूस की तरफ इशारा किया ..

“तुम जल्दी से इन सबकी फ़ोटो खिंच लो ,भगवान ना करे की ये वैसा ही हो जैसा मुझे लग रहा है,इसे आराम से और स्टूडि करने की जरूरत है ,तभी सही तस्वीर सामने आएगी “

हम दोनों ने मिलकर मालती के घर में रखे हर फाइल की फ़ोटो उतार ली ,

“क्या इस कम्प्यूटर का बेकउप मिल सकता है “

मैंने रोहन से कहा

“यार मुझे क्या पता था की ये सब भी करना पड़ेगा वरना किसी कम्प्यूटर एक्सपर्ट को भी साथ लाते,ये तो अभी प्रोटेक्टेड होगा..”

“हम्म चलो कभी बाद में आ जाएंगे”

“तुम्हे लगता है की हमारे आने की खबर उसे नही होगी “

रोहन की बात सुनकर चुप हो गई

“उसे बहकाना जरूरी है ,ताकि उसे ये पता नही चले की हमे उसके असली इरादों के बारे में कुछ भी पता चल चुका है..”

मैंने बहुत ही सोच कर कहा

“तो कैमरा ..”उसे लगे रहने दो ,साथ ही जासूस जी का कार्ड भी यंहा छोड़ दो ,जैसे गलती से गिर गया है,और ये मेरा नाम लेंगे की मैंने ये सब करवाया है …

“लेकिन ..”

गौरव कुछ सोच कर कुछ बोलने वाला था लेकिन मैंने उसे वही चुप करवा दिया

“जो बोल रही हु वो कर अपना खाली दिमाग यंहा ज्यादा मत लगा “

मैं उसे घूर कर देखते हुए बोली ,उसने अपना कंधा उचकया…

*************

जैसा मुझे शक था मुझे दो ही दिन बाद मालती मेडम ने अपने केबिन में बुलाया ..

उनका चहरा गुस्से से लाल लग रहा था लेकिन मैं भी कम गुस्से में उनके पास नही गई थी,भले ही मेरा गुस्सा लाया हुआ था..

“तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई मेरे घर में कैमरा लगवाने की ,अगर तुम मेरी स्टूडेंट नही होती तो अभी तक तुम्हे जेल भिजवा देती ..”

मैं भी भड़क गई

“ओह तो तुम्हे पता चल ही गया,जानती हो मैंने कैमरा क्यो लगवाया था ,तुम्हारे और गौरव के नाजायज रिस्तो को दुनिया के सामने लाने के लिए,तुम यंहा सती सावित्री बनकर घूम रही हो और वो साला पूर्वी की नजरो में देवता बना फिर रहा है लेकिन मैं जानती हु तुम दोनों की असलियत,मैंने लाइब्रेरी में सब कुछ देखा और सुना था ..”

मालती का चहरा देखते ही देखते लाल पड़ गया था ..

“ओह तो ये बात है ,इस लिए तुम हमारी जासूसी करवा रही थी “

“गौरव ने मुझे ठुकराया है ,मैं उसे बर्बाद कर दूंगी “

मैं चिल्लाई ,वही मालती ने अपने सामने रखा हुआ पानी पी लिया

“तुम कितना भी चीखों लेकिन तुम्हारी बात पर कोई भी भरोसा नही करने वाला “

उसके होठो में कमीनी सी मुस्कान फैल गई ..

“लेकिन सच को कितने दिनों तक छिपा के रखोगी “

“सच..??”

वो जोरो से हँसी

“सच क्या है सपना,जो तुमने उस दिन देखा वो सच है ?? कोई भी सच बिना प्रूफ के सच नही होता,और तुम मानो या ना मानो मैं और गौरव अब अलग हो चके है वो पूर्वी से बहुत ही प्यार करता है ,क्या तुमने उस दिन के बात हमे कभी मिलते हुए देखा..??

नही देखा होगा क्योंकि फिर हम कभी नही मिले,गौरव अब सच में पूर्वी से प्यार करता है ,यही सच है ,और ये भी सच है की मैं अब उनके जीवन से निकल चुकी हु ...तुम कितनी भी जासूसी करवा लो तुम्हे कुछ नही मिलने वाला क्योकि अब वो दोनों एक है …”

मालती ने एक गहरी सांस लेते हुए कहा..

मैंने अपने चहरे पर उतना गुस्सा लाया जितना मैं ला सकती थी..

“पूर्वी और गौरव कभी एक नही हो सकते ….पूर्वी को कभी प्यार नही मिलेगा,वो जिससे भी प्यार करेगी मैं उसे छीन लुंगी “

मैं सच में कांपने लगी थी...ये बोलते हुए मेरे दिल में इतनी तकलीफ़ हुई की मेरे आंखों में आंसू आ गए ..

लेकिन मालती के चहरे में आयी हल्की मुस्कान मुझसे छिप नही सकी ..

“तो तुम्हे गौरव से कोई लेना देना नही है “

उन्होंने अपने चहरे में आश्चर्य का भाव लाते हुए कहा

“गौरव ...वो साला बुढ्ढा ,मेरे पास लड़को की कोई कमी है क्या जो मैं उसे लाइन दूंगी ,लेकिन पूर्वी उससे प्यार करती है और मैं उसे कैसे खुश देख सकती हु ..”

मालती मेडम और ही खुश दिखाई दे रही थी ..

“ओह तो ये बात है ,तुम दोनों के बीच दूरियां पैदा करना चाहती हो ,अच्छी बात है तुम्हे मदद करूंगी “

अब मैं चौकी

“तुम ..”

“गौरव ही तो मेरा एक सहारा था ,वो भी अब किसी और से प्यार करने लगा है ,अगर गौरव पूर्वी के साथ रहेगा तो मेरा भी तो नुकसान है ना ,लेकिन तुम ये सब करोगी कैसे “

मेरे होठो में मुस्कान फैल गई

“औरत का जिस्म किसी भी मर्द को बहकाने के लिए काफी है “

उसने मुझे ध्यान से देखा

“तुम पागल हो जो ऐसा सोचती हो ,गौरव को बहकाना इतना भी आसान नही है ..”

“देखते है ..”

मैं इतना ही बोलकर वंहा से निकल गई ………

*******

गौरव को बहकाने का हर प्रयास नाकाम हो रहा था,और आखिर में मैंने वो कदम उठा दिया जिसने चाल को उल्टा ही कर दिया ,

मैंने सोचा था की कोई भी मर्द मुझ जैसी लड़की को अकेले में नंगी देखकर मचलेगा ही,और अगर वो थोड़ा भी मचलता तो मेरा काम हो जाता क्योकि मैंने लेब में पहले ही कई कैमरे लगवा दिए थे ,मैंने गौरव के सामने अपने कपडे खोल दिए और उसे खुला सेक्स का आफर भी दे दिया,लेकिन साला वंहा से भागता हुआ सीधे पूर्वी के पास पहुच गया..

अब तो गौरव पूर्वी के नजरो में भगवान बन चुका था ,और उसने उससे शादी करके अपना बनाना ही सही समझा ,

पूर्वी को रोकना अब नामुमकिन ही था,अब चाहे रोहन हो या गौरव उसके नसीब में ही धोखेबाज लिखे थे तो कोई क्या कर सकता है..

रोहन की मोहोब्बत जिस्मानी ज्यादा थी(ऐसा मुझे लगता है ) और गौरव तो दौलत से …??क्या सच में गौरव पूर्वी की दौलत से प्यार करता था,ये तो वक्त ही बताने वाला था क्योकि पूर्वी ने गौरव को पाने के लिए जो कीमत चुकाई थी वो थी अपने पिता के दौलत से बेदखल होना…

और गौरव को इससे कोई भी फर्क पड़ता मालूम नही हुआ,

या वो बस मालती का मोहरा ही था,लेकिन मैं बराबर उसपर भी नजर रखे थी और किसी भी एंगल से ये नही लगा की वो अब गौरव से किसी भी तरह के किसी नाजायज संबंध में है…

सब कुछ बदल चुका था,पूर्वी ने शादी कर ली ,रोहन और मेरे रिश्ते भी इससे प्रभावित हुए,हम दोनों ही बुझे बुझे रहने लगे थे,कारण था मेरी बदनामी ,कालेज जाना भी मुश्किल हो गया था,रोहन ने मुझे बहुत सहारा दिया लेकिन वो भो लोगो को चुप तो नही करवा सकता था,लेकिन इन सब में एक और चीज हुई …

मैं मालती मेडम से घुलने मिलने लगी,और मेरा इंटरेस्ट अब मैंने अपने केमेस्ट्री के इंटरेस्ट को सीरियसली लेना शुरू किया,उसमें कुछ हाथ मालती के घर से मिले हुए उन कागजात का भी था,जिसे समझने में मेरा दिमाग खप रहा था,

मेरा इंटरेस्ट इतना बड़ा की मैंने MBA की जगह एमएससी करने को प्राथमिकता दी और उसके बाद पीएचडी करने लगी …

मालती ने फिर से मुझे अपने साथ रखा …

मालती की एक बात तो थी,की वो कभी भी गौरव को उकसाने के खिलाफ नही थी,वो मुझे गौरव को उकसाने में मदद करती थी,और इसलिए मैंने गौरव के साथ काम करने की बात उससे की और वो झट से मान भी गई,ये प्रोजेक्ट गौरव के लिए बेहद ही इम्पोर्टेन्ट था और मेरे लिए भी क्योकि इसका आईडिया मालती ने ही गौरव को दिया था,अब मैं गौरव को असिस्ट कर रही थी,कई ऑपरट्यूनिटी एक साथ मेरा दरवाजा खटखटा रही थी ,देखना ये था की मैं कितनो को अपना बना पाती हु …………..
गजब कहानी है भाई, कौन क्या है उलझता ही जा रहा है, बस एक पूर्वी ही मासूम लगती है, पर क्या पता उसका भी कुछ.....
 

Riky007

उड़ते पंछी का ठिकाना, मेरा न कोई जहां...
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अध्याय 21

सुबह जिम में

“तो कैसी रही कल की रात “

रोहन पूर्वी को मुस्कुराते हुए देख रहा था,

पूर्वी के चहरे में हल्की सी शर्म और होठो में हल्की सी मुस्कान खिल गई .

“थैंक्स यार सच में उन्होंने भी मुझे सॉरी कहा”

“मैंने कहा था ना मेरा बात मानेगी तो फायदे में रहेगी “

रोहन की बात से दोनों ही मुस्कुरा उठे…

****

“तो कैसी रही कल रात “

सपना ने गौरव को मुस्कुराते हुए कहा ..

सपना की बात सुनकर गौरव के होठो में मुस्कान आ गई,

“ओहो आप मुझे देखकर मुस्कुरा रहे हो ,मतलब मेरी बात सच हो गई “

सपना ने चहकते हुए कहा ,गौरव की मुस्कान और भी बड़ी हो गई थी ..

“हा उसने भी मुझे सॉरी कहा,शायद मेरी ही गलती थी,anyway थैंक्स ...तुम्हारे सलाह के लिए “

गौरव आज सपना से इतने प्यार से बात कर रहा था की सपना को जैसे यकीन ही नही हुआ ,उसने ऐसे ही मुह बनाया..

“वाओ अचानक से आपकी जुबान कितनी मीठी कैसे हो गई मेरे लिए ,क्या चूस लिया था कल रात …”

सपना खिलखिला कर हँस पड़ी,वही गौरव को जैसे ही उसकी बात का मतलब समझ आया उसकी मुस्कान फिर से गायब हो गई …

“तुम नही सुधार सकती ..आज क्या करना है “

वो इधर उधर देखने लगा …..

***********

“सारा जोर यही लगा दोगे तो पूर्वी के ऊपर क्या लगाओगे”

गौरव को बेंचप्रेस करते देखकर सपना ने एक कुटिल मुस्कान के साथ कहा ...गौरव ज्यादा वजन के साथ बेंचप्रेस करने की कोशिश कर रहा था…

“तुम कभी सीधी बात क्यो नही कर सकती “

गौरव उसपर झल्लाया

“अरे सीधी बात करने के लिए तो बीवी है ना,गर्लफ्रैंड से तो ऐसी ही बाते करते है “

सपना हँसने लगी

“तुम मेरी gf नही हो “

गौरव लेटा हुआ बेंचप्रेस कर रहा था और अब भी लेट हुआ था,सपना सीधे उसके जांघो में बैठ गई ..

“तो बना लो ना “

गौरव को सपना के कूल्हों का अहसास अपने जांघो पर हो रहा था,वो उसके ऊपर झुक गई थी जिससे उसके स्पोर्ट इनर से उसके मम्मे साफ साफ बाहर झलकने लगे थे,गौरव की आंखे एक बार के लिए उसके उरोजों पर ही टिक गई ,फिर उसे आभास हुआ की वो कैसी स्तिथि में है ,उसने तुरंत ही आसपास देखा,पूर्वी दूर थी और नजरो से बाहर थी और बाकियों को उनके बर्ताव से कोई फर्क नही पड़ रहा था,

“ये क्या कर रही हो हटो यंहा से “

गौरव उठने को हुआ लेकिन सपना अभी भी उसके जांघो पर ही बैठी थी,उसके उठने का नतीजा ये था की दोनों के चहरे एक दूसरे के करीब आ चुके थे,गौरव का सीना सपना के उरोजों से सट गया था,उसके पसीने में भीगी हुई परफ्यूम की खुशबू से गौरव के नथुने भर गए..

अब सपना गौरव की गोदी में था और इस मादक माहौल से उत्तेजित हुआ उसका लिंग सपना के जांघो के बीच टकरा गया,गौरव के अंदर दहसत की एक लहर दौड़ गई ,क्योकि वो नही चाहता था की सपना को उसकी उत्तेजना की कोई भी भनक लगे,और दूसरा डर उसे पूर्वी का था अगर वो उसे इस हालत में देख लेती तो क्या होता…

“हटो यंहा से “

गौरव ने जोरो से कहने की कोशिश तो की थी लेकिन लोक लाज के कारण उसकी आवाज धीरे ही आयी,उसकी आवाज आदेशात्मक कम और प्रार्थनात्मक ज्यादा थी…

“मैं नही हटने वाली कर लो जो करना है “

सपना के इठलाते हुए कहा,उसकी सांस तक गौरव के चहरे से टकरा रही थी वही आसपास के लोगो का ध्यान भी अनायास ही उनकी तरफ जाने लगा था..

“प्लीज् “गौरव ने कांपते हुए स्वर में कहा

सपना खिलखिलाते हुए उसके ऊपर से उठ गई और गौरव ने चैन की सांस ली ,ना जाने उसे इतना डर क्यो लग रहा था जबकि गलती तो सपना की थी……..

क्या सच में ,उसने खुद से पूछा..

तेरे जांघो के बीच जो खड़ा हुआ था क्या वो भी सपना की गलती थी…

बस इसका जवाब गौरव के पास नही था और वही उसके डर का कारण भी था,उसे वो दिन याद आया जब वो सपना से सबसे ज्यादा डरा था,जब सपना ने अपने कपड़े उसके सामने खोल दिए थे….क्या सच में वो सपना से डरा था..??

नही ये डर था उसके अंदर उबलते हुए उत्तेजना का और वो डर था की कही वो सामने ना आ जाए,कही वो अपना आपा आ खो दे ..

गौरव की मनोदशा को मानो सपना समझ चुकी थी क्योकि उसे देखकर वो मुस्कुरा रही थी ,जिससे गौरव के शरीर में एक कंपन सी हो गई….

“इसीलिए मैं तुमसे नफरत करता हु,मैंने तो सोचा था की तुम मेरे और पूर्वी के रिश्ते के मजबूत करने में मेरी मदद कर रही हो लेकिन …..लेकिन नही तुम आज भी वही सपना हो जो मुझे मेरी पूर्वी से दूर करना चाहती हो …”

गौरव ने नफरत से उसे देखा लेकिन सपना पर मानो इसका कोई प्रभाव नही पड़ा हो…

“सर आप ना तो कल मुझे समझे थे ना ही आज समझ पाए हो,मैं आपको पूर्वी से अलग नही करना चाहती मैं तो बस आपको अपने पास लाना चाहती हु ...कैसे मर्द हो घरवाली प्यार करने वाली मिल चुकी है ,बाहर वाली भी सबकुछ करने को तैयार है लेकिन फिर भी डरते हो …”

वो फिर से हँसी लेकिन उसकी हंसी से गौरव के चहरे में बस नफरत का भाव आकर रह गया और वो उठाकर दूसरी ओर जाने लगा….


**********

इधर

“बला की खूबसूरत है यार,यार रोहन हमे भी तो मिला इस बला से “

पूर्वी का ध्यान अनायास ही उस ओर खिंच गया जिस ओर से ये आवाज आयी थी,रोहन के साथ खड़ा एक शख्स पूर्वी को ही घूरे जा रहा था,पूर्वी की नजर अचानक ही उससे मिल गई,वो कोई

6 फुट 5 इंच की हाइट वाला बिल्कुल बॉडी बिल्डर जैसा शख्स था, रोहन से भी लंबा था, रोहन उसके सामने बच्चा लग रहा था,वो जैसे कोई दानव हो पूर्वी तो उसे देखकर ही सहम सी गई ,फिर अचानक उसकी नजर उसके बाजू में बैठे शख्स पर गई जिसकी ओर रोहन देख रहा था,एक 6 फुट का लेकिन सामान्य शरीर का बेहद ही हेंडसम सा लड़का ,उम्र लगभग रोहन के उम्र जितनी थी थी,और ऐसा लग रहा था जैसे रोहन का अच्छा दोस्त है …

दिखने में जैसे रणवीर कपूर,चहरे से ही मासूमियत टपक रही थी,लेकिन एक शरारत भी ...पूर्वी अब कन्फ्यूज थी की आखिर ये आवाज थी किसी उस दनाव जैसे इंसान की या इस स्मार्ट छोकरे की …

तभी रोहन ने मुस्कुराते हुए उस स्मार्ट लड़के से कहा

“ये कोई बला नही है रफीक ये मेरी पुरानी दोस्त है पूर्वी “

“रफीक नही रफीक भाई “

एक गरजती हुई आवाज आयी और रोहन उस दानव को देखने लगा..

तभी रफीक बोल उठा

“अबे ये मेरे दोस्त है बे बल्ला तुझे कितनी बार समझाया है की दोस्तो के लिए मैं सिर्फ रफीक हु ,कम ऑन रोहन इसकी बातों का बुरा मत मानना”

रोहन भी रफीक की बात सुनकर मुस्करा उठा,

“इस मांस के टुकड़े में दिमाग होता तो शायद बुरा मानता..”रोहन की बात से दोनों ही हँस पड़े लेकिन बल्ला गुस्से से रोहन को देखा फिर भी चुप रहा ..

रोहन ,रफीक के साथ पूर्वी के पास पहुचा जो की उन्हें ही देख रही थी

“रफीक ये पूर्वी है मेरी बचपन की दोस्त और ये है …”

रोहन आगे कहता उससे पहले ही पूर्वी बोल पड़ी

“रफीक भाई ,अभी अभी सुना,क्यो अब तो ठीक है ना”

पूर्वी ने बल्ला को देखा जो की हल्क की तरह गुस्से से उनलोगों को देख रहा था..

रोहन और पूर्वी इस बात पे हँस पड़े

“अरे आप तो भाई मत बोलिये…”

“क्यो आखिर ??”पूर्वी ने इतराते हुए कहा

“फकत यू रिश्तों के बोझ में न उलझा दो हमे,रिश्ता नही हम दोस्ती करने आये है “

रफीक बड़े ही शायराना अंदाज में कहा

“ओह लेकिन दोस्ती भी तो एक रिश्ता ही है ,ऐसे आप शायर भी है “

“मुझे लगता है की दोस्ती में रिश्तों वाली कोई बंदिश नही होती,ऐसे ये शायरी हमारे अब्बू के एक बिजनेस पार्टनर ने अम्मी के लिए कही थी जब अम्मी ने उन्हें भाई कहा था”

पूर्वी और रोहन ने आश्चर्य से उसे देखा

“तो आपके अब्बू ने क्या जवाब दिया “पूर्वी ने उत्सुक होकर उससे पूछा…

“जवाब क्या देना बल्ला ने उसका गला काट दिया और क्या “

इस बार पूर्वी और रोहन दोनों के ही चाहे में अपार आश्चर्य था...दोनों कभी रफीक को देखते तो कभी बल्ला को तो कभी एक दूसरे को ..

“कोई शेख साहब के सामने अम्मी से बतमीजी करे तो अंजाम तो यही होना था..”

बल्ला बोल उठा

“शेख साहब ??”

पूर्वी ने फिर आश्चर्य से कहा

“जी हा हमारे अब्बू दुबई के शेख है ,और बल्ला हमारे परिवार का पुराना वफादार है …”

“लेकिन आप तो इतनी अच्छी हिंदी बोलते है “

रफीक का खिला हुआ चहरा थोड़ा मुरझा गया

“असल में मेरी अम्मी का परिवार मुम्बई से ताल्लुक रखता है ,मैं तब 18 साल का था जब मेरे अब्बू की मौत हुई,अम्मी ने अब्बा के पुराने दोस्त शेख साहब से निकाह कर लिया और मेरे और बल्ला के साथ दुबई में जा बसी,मेरी अम्मी शेख साहब की तीसरी बीवी है लेकिन उन्होंने हमे बहुत प्यार दिया,अब मैं भारत फिर से आया हु अपने बिजनेस को सम्हालने और शेख साहब के बिजनेस को यंहा फैलाने के लिए और ये मेरा बचपन का दोस्त कम बॉडीगार्ड कम भाई बल्ला है …”

पूर्वी को रफीक की आंखों में बल्ला के लिए अपार स्नेह दिखा,वही बल्ला की आंखे ही बता रही थी की वो रफीक के लिए जान दे भी सकता है और जान ले भी सकता है ……..

“अब छोड़िए इन बातों को मैं यंहा नया हु तो आपलोगो की जिम्मेदारी है मुझे शहर दिखाने की “

रफीक की आवज में एक गजब का अपनत्व था ,लेकिन उसकी इस बात पर पूर्वी ने एक बार रोहन को देखा..जैसे कह रही हो ये कहा फंसा दिया ..

रोहन बस मुस्करा रहा था

“बिल्कुल रफीक ...भाई”

उसने बल्ला को देखते हुए कहा और तीनो फिर से हँस पड़े …


**************

“अरे ये कौन था ???”

रफीक को जाता हुआ देखकर गौरव ने पूर्वी से पूछा,वो अभी अभी सपना से चिढ़कर पूर्वी और रोहन की तरफ़ ही आया था..

“अभी अभी आया है दुबई से किसी बिजनेस के सिलसिले में ,रफीक नाम है इसका “

रोहन की बात से गौरव के चहरे में थोड़ी हैरानी आ गई

“क्या हुआ आप इतने हैरान क्यो लग रहे हो”पूर्वी गौरव के आये हुए भाव को समझ नही पा रही थी..

“कुछ नही ये आदमी मुझे कल केमेस्ट्री डिपार्टमेंट में दिखा था,सपना से बात करते हुए ..”

गौरव की बात सुनकर अब पूर्वी और रोहित दोनों ही चौके …

“सपना से ???”

पूर्वी के मुह से अनायास ही निकल गया

“क्या पता हो सकता है शेख साहब लखानी अंकल के दोस्त हो “

रोहन ने अपनी ओर से कहा

“शेख साहब ??अब ये कौन है “गौरव फिर से कन्फ्यूज था

“रफीक के अब्बू …”

रोहन की बात सुनकर अचानक ही गौरव का चहरा कुछ गंभीर हो गया..

“क्या हुआ आपको “पूर्वी भी उसकी ऐसी हालत देखकर थोड़ी सहम गई

“कुछ नही कुछ नही चलो घर चलते है “

गौरव जल्दी से वंहा से निकला,पूर्वी रोहन की तरफ घूमी और रोहन ने बस कंधा उचकया जैसे कह रहा हो की मुझे क्या पता…

लेकिन रोहन के दिमाग में अब भी कई सवाल चल रहे थे,आखिर रफीक को सपना कैसे जानती है और शेख का नाम सुनकर अचानक गौरव को क्या हो गया…??

**********
राज गहरे हैं
साज ठहरे हैं
 

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उड़ते पंछी का ठिकाना, मेरा न कोई जहां...
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वाह वाह डॉक्टर साहब, गजब का ट्विस्ट था आपकी कहानी में।

हर व्यक्ति पर शक की सुई घूमी, एक बार तो लगा की drchutiya सबको चूतिया बना रहे हैं, लेकिन....
 

Hindshera

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अध्याय 3
“तो तुम उस चुड़ैल के साथ काम करने वाले हो “
पूर्वी थोड़ी गुस्से में थी शायद मालती मेडम ने उससे बात की थी..
वो अभी अभी तो ऑफिस से आयी थी और अभी ही शुरू हो गई ..
“अरे जान बैठ भी जाओ ,थोड़ा पानी वानी तो पी लो “
मैं हंसता हुआ बोला
“नही पीना है कुछ ,अब मैडम ने फोन किया तो मुझे भी इजाजत देनी पड़ी ..”
“और मेडम ने ये नही बताया की तुम्हारा पति तुमसे कितना डरता है …”
पूर्वी के होठो पर एक प्यारी सी मुस्कान खिल गई
“बताया ,लेकिन जान आप तो सपना को जानते हो ना,वो हमेशा से मुझसे कंपीटिशन करने में लगी रहती है ,हम दोनों के पिता भी बिजनेस कॉम्पिटिटर थे,स्कूल हो या कालेज सभी जगह वो उसने मुझे परेशान किया और जब कालेज में हमारे बीच प्यार हुआ तो वो भी आपको मुझसे छिनने में लग गई ,अब आप ही बताओ मैं गुस्सा ना करू तो क्या करू साली अब भी आपके पीछे लगी हुई है ..”
उसका मुह फूल चुका था,
“अरे मेरी जान मैं तब भी तुम्हारा था और आज भी तुम्हारा हु और जीवन भर तुम्हारा ही रहूंगा ,अपने प्यार पर इतना तो यकीन करो “
उसने मुझे गीली आंखों से देखा
“आप पर पूरा यकीन है लेकिन उस सपना पर नही ,कालेज की तरह अकेला पाकर उसने अपने कपड़े उतार दिए तो ..”
मेरे सामने वो मंजर तैर गया जब सपना और पूर्वी दोनों ही एक ही क्लास में हुआ करते थे और मैं उनका टीचर था,पूर्वी और सपना दोनों को ही मुझसे प्यार हो गया ,दोनों के बीच जैसे एक कंपीटिशन चल पड़ा था मुझे पाने के लिए,मैं पूर्वी से प्यार करता था लेकिन सपना ये बात मानने को राजी ही नही थी ,और एक दिन उसने वो किया जो कोई सोच भी नही सकता था,मैं अपने लेब में काम कर रहा था और उसने मेरे सामने अपने सारे कपड़े उतार दिए,उसका मादक जिस्म मेरे सामने खुला हुआ था,उसने खुद को भोगने का खुला आमंत्रण दिया था ,लेकिन वो पूर्वी का प्यार ही था जिसने मुझे बचा लिया,लेब का दरवाजा अंदर से लगा था और मैं पसीने से भीग चुका था ,लेकिन मेरे अंदर से आवाज उठी की भाग जा और मैं भागा,दरवाजा खोल कर सीधे पूर्वी को ढूंढने भागा और उसे सब कुछ बता दिया..
इस बात से सपना का गुस्सा सातवे आसमान पर पहुच चुका था उसे लगाने लगा जैसे मैंने उसकी और उसके हुस्न की बेज्जती कर दी ,उस समय तक पूर्वी मेरे बारे में उतनी सीरियस नही थी ,उसका ब्रेकअप रोहन से हो चुका था ,हमारे रिश्ते को भी 6 महीने ही हुए थे और वो सीरियस नही होना चाहती थी,अभी एक दूसरे को समझने में ही समय बिता रहे थे लेकिन सपना के इस काम से पूर्वी के मन में मुझे खो देने का भाव जाग उठा और वो मेरे लिए बहुत ही डिस्प्रेट हो गई ,कालेज खत्म होते ही उसने अपने घर में शादी की बात कर दी और कुछ ही दिनों में उसने घर वालो से बगावत कर मुझसे शादी कर ली …
एक ही क्षण में मेरे सामने सारी बाते घूम गई और साथ ही सपना को वो रूप भी ,चाहे जैसा भी हो लेकिन वो थी बेहद ही सेक्सी जिस्म की मलिका,इस घटना के बाद उसका पूर्वी और मुझसे झगड़ा हो गया और उसके बाद हमने कभी भी बात नही किया,हा उसने हमारी शादी तोड़ने की कोशिश जरूर की थी ,लेकिन पूर्वी के सामने कुछ नही कर पाई…
पूर्वी मुझे सोच में डूबा हुआ देखकर फिर से बोल उठी
“क्या हुआ मैं कुछ पूछ रही हु ,अगर उसने फिर से कपड़े खोल दिए तो ,और अब तो मैं भी नही होंगी आपको बचने के लिए”
मैं उसके प्यारे चहरे को ध्यान से देखने लगा..
“पगली उस समय मेरे जीवन में तेरा प्यार घुला नही था और मैं तब नही बहका तो अब तो मेरे जीवन में तेरा प्यार घुल चुका है तुझे लगता है की मैं अब बहक जाऊंगा ..”
उसकी आंखों में पानी आ गए थे और उसने मुझे जोरो से जकड़ लिया..
“आई लव यू जान ..”
मैने उसके होठो में अपने होठो को मिला दिया
“लव यू बाबू…”
लेकिन मेरा दिमाग अब भी उस बात को लेकर बेचैन था की आखिर मैं सपना का सामना कैसे करूंगा….

************
मैं अपने लेब में बैठा हुआ डेटा को जांच रहा था ,तभी सपना वंहा आयी ..वो आज थोड़े अलग अवतार में थी ,आज उसने जीन्स टॉप की जगह सलवार कमीज पहन रखी थी और बहुत ही शांत लग रही थी शायद मेडम ने इसे ऐसा करनी की एडवाइस दी हो ..
“गुड आफ्टरनून सर “
उसकी आवाज थोड़ी नरम थी ..
“ह्म्म्म चलो काम में लग जाओ ,अभी तक के सारे डिटेल्स मैंने तुम्हे भेज दिए थे आई थिंक की तुमने सभी पढ़ लिए होंगे..”
“जी ,”
“तो तुम्हे क्या लगता है की हम कितने सक्सेजफुल होंगे..”
“सर सक्सेज फूल हो हम हो जाएंगे लेकिन हमे वालेंटियर चाहिए होंगे….जिनके ऊपर हम ये सब केमिकल टेस्ट करे “
“अभी तो चूहों पर ही करना पड़ेगा ,बाद में वालेंटियर ढूंढेंगे..”
“आप बोलो तो मैं कुछ का जुगाड़ कर सकती हु ..”
मैने उसे ध्यान से देखा
“तुम मुझे जेल कार्रवाओगी क्या ,ये कानूनी रूप से गलत होगा..”
वो जोरो से हँस पड़ी
“सर यंहा कानून को कौन मानता है ..”
“नही सपना अभी नही ,जब जरूरत होगी तब ले आना ,चलो काम पर लगो ..”
वो आश्चर्यजनक रूप से मुस्कुराई
“सर क्यों ना हम फिर से नई शुरुवात करे ..बीती बातों को भूलकर ..”
उसने अपना हाथ मेरे सामने किया ..
मैं भी रात भर से यही सोच रहा था की आखिर मैं सपना से कैसे डील करूंगा ,नई शुरुवात का आईडिया मुझे पसंद आया और मैंने अपना हाथ आगे कर दिया …
“ऐसे सुना है पूर्वी आजकल रोहन के साथ काम कर रही है ..”
सपना काम करते हुए अचानक ही बोल पड़ी …
मैंने उसे घूरा ..
“सम्हाल कर रहिएगा सर ,रोहन है बड़ा ही कमीना ..”
“मैं भी तो तुम्हारे साथ काम कर रहा हु और तुम कौन सी सीधी हो ..फिर भी पूर्वी ने इसकी इजाजत दी ना..”
सपना मेरी बात सुनकर खिलखिला कर हँस पड़ी ..
“आप दोनों के बीच बहुत ही भरोसा है सर शायद इसलिए आप दोनों ने एक दूसरे को पुराने प्रेमियों के साथ काम करने की इजाजत दे दी ..”
उसकी आंखे अजीब से भाव से भर गई थी ,जो मुझे अंकम्फर्टबल कर रहा था..
“पहली बात की हा हमे एक दूसरे पर पूरा भरोसा है ,और दूसरी बात की तुम मेरी प्रेमिका नही थी …”
मैंने स्पष्ट शब्दो में कहा,सपना की आंखे अब भी मुझपर गड़ी हुई थी .
“लेकिन मैं तो आज भी आपसे उतनी ही मोहोब्बत करती हु “
उसने बहुत ही हल्के आवाज में कहा लेकिन लेब की खामोशी में उसकी आवज मुझे सुनाई दे गई ..
“सपना ...ये तुम्हारी नई शुरुवात है ,तुम आज भी उन्ही बातों को लेकर बैठी हो …”
मैं चिल्लाया
वो झेंप गई ..
“सॉरी सॉरी सर ..”
अब मैं भी शांत था ,मुझे लगा जैसे सच में सपना बहुत ही बदल गई है …..
भाई थोड़ा दुस्रो के साथ भी sex सीन डाला करे अगर ज्यादा क्रिम हि देखना है तो movie हि नी देख लूंगा तो जिसक लिए आया हुन उसका थोड़ा ध्यान रखे आप अच्छी लिखते हैँ इसलिए बोलाप्
 

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Hello everyone.

We are Happy to present to you The annual story contest of XForum


"The Ultimate Story Contest" (USC).

Jaisa ki aap sabko maloom hai abhi pichhle hafte hi humne USC ki announcement ki hai or abhi kuch time pehle Rules and Queries thread bhi open kiya hai or Chit Chat thread toh pehle se hi Hindi section mein khula hai.

Well iske baare mein thoda aapko bata dun ye ek short story contest hai jisme aap kisi bhi prefix ki short story post kar sakte ho, jo minimum 700 words and maximum 7000 words tak ho sakti hai. Isliye main aapko invitation deta hun ki aap is contest mein apne khayaalon ko shabdon kaa roop dekar isme apni stories daalein jisko poora XForum dekhega, Ye ek bahot accha kadam hoga aapke or aapki stories ke liye kyunki USC ki stories ko poore XForum ke readers read karte hain.. . Isliye hum aapse USC ke liye ek chhoti kahani likhne ka anurodh karte hain.

Aur jo readers likhna nahi chahte woh bhi is contest mein participate kar sakte hain "Best Readers Award" ke liye. Aapko bas karna ye hoga ki contest mein posted stories ko read karke unke upar apne views dene honge.

Winning Writers ko Awards k alawa Cash prizes bhi milenge jinki jaankaari rules thread mein dedi gayi hai, Total 7000 Rupees k prizes iss baar USC k liye diye jaa rahe hain, sahi Suna aapne total 7000 Rupees k cash prizes aap jeet shaktey hain issliye derr matt kijiye or apni kahani likhna suru kijiye.

Entry thread 7th February ko open hoga matlab aap 7 February se story daalna shuru kar sakte hain or woh thread 28th February tak open rahega is dauraan aap apni story post kar shakte hain. Isliye aap abhi se apni Kahaani likhna shuru kardein toh aapke liye better rahega.

Aur haan! Kahani ko sirf ek hi post mein post kiya jaana chahiye. Kyunki ye ek short story contest hai jiska matlab hai ki hum kewal chhoti kahaniyon ki ummeed kar rahe hain. Isliye apni kahani ko kayi post / bhaagon mein post karne ki anumati nahi hai. Agar koi bhi issue ho toh aap kisi bhi staff member ko Message kar sakte hain.


Rules Check karne ke liye is thread ka use karein — Rules & Queries Thread

Contest ke regarding Chit Chat karne ke liye is thread ka use karein — Chit Chat Thread



Prizes
Position Benifits
Winner 3000 Rupees + Award + 5000 Likes + 30 days sticky Thread (Stories)
1st Runner-Up 1500 Rupees + Award + 3000 Likes + 15 day Sticky thread (Stories)
2nd Runner-UP 1000 Rupees + 2000 Likes + 7 Days Sticky Thread (Stories)
3rd Runner-UP 750 Rupees + 1000 Likes
Best Supporting Reader 750 Rupees Award + 1000 Likes
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