अरे भाई! कैसा awkward moment है ये!
कभी कभी परिस्थितियाँ ऐसी जटिल हो जाते हैं
पहली बार... शायद पहली बार विक्रम ने अपने बाप से तर्क वितर्क किया हो!
अभी तक तो वो जी हुज़ूर वाले mode में था!
हाँ अब विक्रम धीरे-धीरे भैरव सिंह की विरोध करने लगेगा
इतना जानने पर भी अगर वो अनु को बचाने की कोशिश न करे, तो एक तरह से वो खूनी ही है।
जान-बूझ कर किसी निर्दोष की हत्या होने देना, ख़ास कर तब जब आप हत्या को रोकने में सक्षम हैं, महापाप है।
शायद यहीं से वो भैरव से दूर होने की कोशिश करे?
अनु पर खतरा है यह वीर जानता है पर वह यह नहीं जानता कि खतरा उसके परिवार से है
वह निरंतर उस अनजाने दुश्मन के बारे में सोच रहा है
विक्रम आगे क्या करेगा यह बाद में पता चलेगा
सोचो - जिनके घर आना चाहती है, जिनकी स्वीकृति चाहती है, वो उसकी हत्या करना चाहते हैं।
अनु बचेगी कैसे, यह देखने वाली बात रहेगी।
विडंबना है
पर कोई ना
वीर विश्व के साथ मिलकर अनु को बचा लेगा
और यही कारण होगा कि वीर क्षेत्रपाल परिवार से बगावत कर देगा
ओ तेरी
अगली बार लिखते समय ध्यान देना पड़ेगा
हाँ यार
मुझे भी यही लगता है
लगता है इसी प्रोजेक्ट में पहली बड़ी चोट लगेगी खेत्रपालों को!
धन की चोट सबसे गहरी होती है।
हाँ यह चोट विश्व की सोचने की काबिलियत से परिचित करवायेगी भैरव सिंह और बल्लभ प्रधान को
ये बड़ी रहस्य वाली बात हो गई! किसकी तक़दीर?
ऐसा तो हो ही नहीं सकता कि भैरव को रोणा की बार बार की नाकामी दिखाई न दी हो! क्या पता, रोणा की ही तक़दीर का फ़ैसला हो जाए!
ये बल्लभ बड़ा सालार हो सकता है भैरव की सेना का!
तकदीर
गौर करने वाली बात यह है कि रोणा सोच रहा है कि
उस पैकेट में टोनी, रोणा, विश्व और नंदिनी की तकदीर होगी
ये सब तो ठीक है, लेकिन लगता ही नहीं कि अनु को बचाने को ले कर कोई urgency है वीर में!
वो विश्व को पूरी बात ही नहीं बता रहा है। और तो और, उसको अनु के ऊपर घर से ही होने वाले हमले का कोई ज्ञान ही नहीं है।
शायद विक्रम उसको बताएगा। मामला बड़ा रोचक हुआ जा रहा है दादा!
दारूण दारूण!

हा हा हा
बस यार अगली कड़ी में आपको सब पता चलेगा