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अपडेट -30
सामने से गेट खुला जिस्म भैया और मौसी का चुंबन चल रहा था। मैं हाथ में लंड पकड़ के हिलाने लगा। (बताने से समझ में नहीं आएगा किरदार, घुसना पड़ेगा)
मैं और मौसी एक दूसरे को किस किये जा रहे थे।
मौसी- "उम्ह आह.... उम-उम आह...आह...आह..." "आह.. आह... उम्म...उफ...आह...ओह" शैलू मेरी डार्लिंग आराम से देखो तुम्हारे बिना कितनी अकेली हो गई है।तुमको अपनी मौसी की बुर की कोई चिंता ही नहीं कितनी पनिया गई है देखो.l
हमेशा तुम्हारे लंड को भूख लगती है।
मैं लगातार मौसी के गाल,गले,बूब्स और उनके पेट पर किस किये जा रहे थे।
आह! मेरी शालिनी देख मेरा लंड कितना बेताब है तेरी चूत की सवारी करने के लिए। पैंट फाड़ कर बाहर आने को बेताब है।इतना कहे भैया ने मौसी का ब्लाउज खोलने लगे और मौसी भैया की शर्ट उतारने लगी।
अब मौसी सिर्फ ब्रा पहनी हुई थी और नीचे उनकी साड़ी थी।
मै साड़ी के ऊपर से मौसी की चूत चूमने लगी मौसी मेरा सर दबाये अपनी चूत में दबाये जा रही थी।
मैंने एक झटके में मौसी की साड़ी और फिर उनका पेटीकोट खोल दिया।
मौसी अब सिर्फ ब्रा पैंटी में थी.मैं नीचे जमीन पर बैठा था और मौसी की चूत को पेंटी के ऊपर से चाट रहा था।
मौसी ने मुझे उठा कर किस किया और अपने हाथ से मेरा लंड पेंट के ऊपर से दबाने लगी।
मौसी ने मेरी पेंट खोल दी थी अब पूरा नंगा था बस मेरे जिस्म पर मेरे लंड को ढाके हुए मेरी अंडरवियर थी।
मौसी लगतार मेरे लंड को ऊपर से दबाये जा रही थी। मौसी को ऊपर से होंठ, गाल और उनके स्तन पर लगातार चुंबन किये जा रहा था।
मौसी नीचे बैठ कर, उन्हें ने मेरी अंडरवियर उतार दी, मैं पूरा नंगा हो गया।
मैं भी कम नहीं था मैंने मौसी की ब्रा उतार दी और खड़े होकर उनके स्तन दबाए।
मौसी मेरा लंड चूसने लगी, मेरे मुँह से सिस्कारी निकालने दो।
मौसी- आह...आह... उम्म...उफ...आह...ओह"ओह माय शैलू कितना भी इसे चाट लो कितना भी इसे प्यार लो ये हमेशा मेरे सामने खड़ा ही रहता है।
मैं-अरे मौसी तुम इतनी सेक्सी माल हो तुम्हारे सामने बुड़ो को खड़ा हो जाए तो मेरा लंड क्या चीज है।
मौसी लगतार मेरे लंड को चूसे जा रही थी।
10 मिनट से मौसी लगातार मेरे लन्ड को चूस रही थी।
मैं- मौसी मै छूटने बाला है। आह आह शालिनी ओह येस आह-उहू हो गया।
मौसी-मेरे मुंह के अंदर ही छोड़ना,
मौसी चेहरे से पसीने, और मुंह से लार टपक रही थी।
और मौसी के मुंह में झड़ने के बाद मौसी को उठा कर बेड पर पटक दिया।
मैं नीचे बैठ गया अब मौसी की चूत बिल्कुल मेरे सामने थी और पैंटी के अंदर कैद थी।
बिना देर किये मैंने पैंटी निकाल कर सुघाने लगा।
मौसी बोली- दारू सामने पड़ी और तू चखने से काम चला रहा है।
मैं- अरे शालिनी याद करो यहीं वो चखना है जहां से हम लोगों की शुरुआत हुई थी।
मौसी- हां ना उस दिन तू मेरी पैंटी सुंघता और ना तुझे ये सब कुछ देखती है और नहीं हम लोग पति पत्नी बनते हैं।
इतना कहे मौसी ने मेरा मुँह अपनी चूत से लगा दिया, मैं उनकी चूत को चटाने लगा मौसी लगा सिसकने लगी।
Oh yes shailu aah uumh aah ऐसे ही अपनी जीभ से चोदो आह!
मौसी की निकलें बाली आवाज मुझे बहुत मदहोश कर रही थी।
मौसी की चूत को चाटते जा रहा था मौसी अपने हाथ मेरा सिर दबा रही थी।
मौसी थोड़ा पीछे हुई थी, और बिस्तर पर आके लेट गए।
मै और मौसी 69 की पोजीशन में थे।मौसी मेरा लंड मेरे लिए अन्दर बाहर कर रही थी।मैं उनकी बुर चाटते जा रहा था।
मौसी देख पहले कितना छोटा था ये मेरे मुँह में लॉलीपॉप की तरह लगता था। अब देख कितना बड़ा है एक मोटे केले के जितना तेरी बीवी हमेशा तुझ से खुश रहेगा।
मैं मौसी की चूत चाट रहा था लेकिन अब मैं रुक गया था।
मौसी- क्या हुआ क्यू रुक गया।
मै बेड में साइड होकर किनारे बैठ गया।
मौसी- अब बोलेंगे भी तुझे क्या हुआ है।
मैं- आप ही मेरी बीवी हो और कोई नहीं, आप जगह कोई नहीं ले सकते।
मौसी- अरे मेरा बाबू नाराज़ हो गया फिर मौसी बिस्तर के ऊपर खड़ी हुई और मेरे मुँह पर अपनी चूत रख दी।
मैं कुछ नहीं कर रहा था।
मौसी, बेटा चाट ले ऐसे सिर्फ नसीब बालो को ही मिलती है।
मैं फिर से मौसी की चूत को चाटने लगा।
मौसी मेरे ऊपर बैठ कर आह उह की आवाज़ निकल रही थी।
मौसी ”aaahhhh....uhuh...aah….umm……AAAhhhhhh….” मै आने वाली हूं।
मौसी की चूत ने पानी मेरे मुँह में छोड़ दिया लेकिन मैं हमेशा की तरह एक बूंद भी बर्बाद नहीं होने दी।
हम दोनों झड़ने के बाद लेट कर बाते करने लगे ।
मैं- शालिनी आज तुम्हारी चूत चाटने में अलग ही मजा आया।
मौसी - हां पतिदेव इतने दिन बाद करोगे तो मजा तो तुम्हे तो मजा आयेगा।और मै तो ऐसे भूखी रहूंगी।बिचारी मेरी चूत ।
तेरी शादी हो जायेगी तू मुझे भूलेगा तो नही ना।
मैं - अरे शालिनी तुम मेरी पहली प्राथमिकता हो। यह सब बोल कर अच्छे खासे मूड की मां मत चोदो।
अच्छा चल अगर रेस्ट कर लिया हो तो आगे का काम शुरू कर।
शालिनी मेरे लन्ड सुख गया है। जरा अपने मुंह में लेकर इसे गीला करदे मेरी रांड़ ।
मौसी लेटी थी मे लन्ड लेकर उनके मुहुं के पास गया और लन्ड को मूंह लेकर आगे पीछे करने लगी।
मैं बैठ कर एक हाथ से दूध दबा रहा और दूसरे हाथ से मौसी की चूत में उंगली कर रहा ।
लन्ड उनके मुंह से निकल कर चूत को चाट कर उनकी चूत पर थूक कर टांगो को अपने कंधों पर रख कर लन्ड को चूत पर सेट किया और एक झटका दिया।
मेरा लंड चूत को चीरता हुआ अन्दर जाने लगा और मौसी ‘ऊई ईईई ऊईई ई आहह हह’ करके चिल्लाने लगी और छूटने के लिए छटपटा रही थी।
पर में ऐसे ही कहां छोड़ने वाला था।एक बार फिर जोर से धक्का लगाया।
मेरा लन्ड बिना किसी दिक्कत के पूरा मौसी की चूत के अंदर घुस गया।मौसी की आंखों से आसूं निकल रहे थे।
लेकिन मेरे लन्ड के आगे चूत के दर्द का थोड़ा भी अहसास नहीं था।
बड़ी बेरहमी से मौसी को चोदने लगा।
मैं मौसी की चूत में लन्ड आगे पीछे किए जा रहा था मौसी मदहोश करने वाली आवाजे निकाल रही थी।
कुछ धक्के लगते दर्द गायब सा हो गया था।
क्योंकि अब मौसी मजे से चुत चुदाई कराने लगी।
चूचियां को तेज़ तेज़ दबाना शुरू कर दिया और हर झटके से मौसी मजा ले रही थी।
‘ऊई ऊइई ऊईई ईई आहह हहह आह हहह … छोड़ो मुझे छोड़ो …’ चिल्लाती रही लेकिन मैं पागलों की तरह चोदता रहा।
मेरे मोटे लंड ने आज चूत का भोसड़ा बना दिया था।
मुँह से सिसकारियां निकल रही थीं- आह्हह उम्म्म आह्ह आह्ह हाए आह्हह!
इन्हीं आवाजों के साथ मैं चुदाई के नशे में खो गया था।
अब मैं चुदाई के मज़े का आनन्द उठा रहा था और मौसी अपनी कमर उठा उठा कर साथ दे रही थी.
साथ ही चिल्ला रही थी- आह मुझे जोर से चोद … हां हां हां ऐसे ही चोद अपनी रण्डी मौसी को चोद ऐसे ही ऊह आह ओह … ओह … आऊ!
मैं बोले जा रहा था- ले ले और ले … और अन्दर तक ले … तेरी चूत प्यासी है … प्यास बुझा अपनी चूत की!
कुछ देर बाद मेरा बदन अकड़ने लगा.
अब शायद मै झंडने वाला हूं। शालिनी कहा पर छोड़ूं,
मौसी - मेरा भी होने वाला है।
मौसी ने लन्ड निकाल अपने बूब्स में फसाकर आगे पीछे करने लगी। मैं भी उनके बूब्स में झटके मारने लगा।
कुछ ही समय में उनके मुंह और बूब्स के बीच झड़ गया।और निढाल होकर मौसी के ऊपर ही लेट गया।
हम दोनो एक साथ झड़ गए थे।
थोड़ी देर बाद ऐसे ही सो गए आंख खुली होगी लगभग शाम 6 बजे आंख खुली होगी। (अब कैरेक्टर से बाहर आ रहा हूं)
मोबाइल किनारे रख कर मौसी के बारे में सोचने लगा।क्या सेक्सी आइटम है। अब शायद मुझे भी मौसी से सेक्स ज्ञान लेना होगा। लेकिन अभी जब भैया मौसी से दूर होगे तभी मेरा काम आसान होगा क्यों की जब तक भैया की शादी नही होती तब तक मेरा कुछ नही हो सकता।लेकिन मन में डर भी था। आज तो मौसी ने बहुत मुश्किल से ही माफ किया था।
मैने इतनी मस्त पोर्न आज तक नही देखी अब तक मै बेड पर ही 2 बार झड़ चुका था।
मौसी की चुदाई के हसीन सपने देखने लगा और पता ही नही चला कब सो गया।
मेरी आंख खुली होगी सुबह 7 बजे।
“भाई आगे के अपडेट चाहिए तो बताना स्टोरी कैसी है नही तो यही से बंद कर दूंगा कुछ लोगो को अच्छी ना लगने के कारण”
सामने से गेट खुला जिस्म भैया और मौसी का चुंबन चल रहा था। मैं हाथ में लंड पकड़ के हिलाने लगा। (बताने से समझ में नहीं आएगा किरदार, घुसना पड़ेगा)
मैं और मौसी एक दूसरे को किस किये जा रहे थे।
मौसी- "उम्ह आह.... उम-उम आह...आह...आह..." "आह.. आह... उम्म...उफ...आह...ओह" शैलू मेरी डार्लिंग आराम से देखो तुम्हारे बिना कितनी अकेली हो गई है।तुमको अपनी मौसी की बुर की कोई चिंता ही नहीं कितनी पनिया गई है देखो.l
हमेशा तुम्हारे लंड को भूख लगती है।
मैं लगातार मौसी के गाल,गले,बूब्स और उनके पेट पर किस किये जा रहे थे।
आह! मेरी शालिनी देख मेरा लंड कितना बेताब है तेरी चूत की सवारी करने के लिए। पैंट फाड़ कर बाहर आने को बेताब है।इतना कहे भैया ने मौसी का ब्लाउज खोलने लगे और मौसी भैया की शर्ट उतारने लगी।
अब मौसी सिर्फ ब्रा पहनी हुई थी और नीचे उनकी साड़ी थी।
मै साड़ी के ऊपर से मौसी की चूत चूमने लगी मौसी मेरा सर दबाये अपनी चूत में दबाये जा रही थी।
मैंने एक झटके में मौसी की साड़ी और फिर उनका पेटीकोट खोल दिया।
मौसी अब सिर्फ ब्रा पैंटी में थी.मैं नीचे जमीन पर बैठा था और मौसी की चूत को पेंटी के ऊपर से चाट रहा था।
मौसी ने मुझे उठा कर किस किया और अपने हाथ से मेरा लंड पेंट के ऊपर से दबाने लगी।
मौसी ने मेरी पेंट खोल दी थी अब पूरा नंगा था बस मेरे जिस्म पर मेरे लंड को ढाके हुए मेरी अंडरवियर थी।
मौसी लगतार मेरे लंड को ऊपर से दबाये जा रही थी। मौसी को ऊपर से होंठ, गाल और उनके स्तन पर लगातार चुंबन किये जा रहा था।
मौसी नीचे बैठ कर, उन्हें ने मेरी अंडरवियर उतार दी, मैं पूरा नंगा हो गया।
मैं भी कम नहीं था मैंने मौसी की ब्रा उतार दी और खड़े होकर उनके स्तन दबाए।
मौसी मेरा लंड चूसने लगी, मेरे मुँह से सिस्कारी निकालने दो।
मौसी- आह...आह... उम्म...उफ...आह...ओह"ओह माय शैलू कितना भी इसे चाट लो कितना भी इसे प्यार लो ये हमेशा मेरे सामने खड़ा ही रहता है।
मैं-अरे मौसी तुम इतनी सेक्सी माल हो तुम्हारे सामने बुड़ो को खड़ा हो जाए तो मेरा लंड क्या चीज है।
मौसी लगतार मेरे लंड को चूसे जा रही थी।
10 मिनट से मौसी लगातार मेरे लन्ड को चूस रही थी।
मैं- मौसी मै छूटने बाला है। आह आह शालिनी ओह येस आह-उहू हो गया।
मौसी-मेरे मुंह के अंदर ही छोड़ना,
मौसी चेहरे से पसीने, और मुंह से लार टपक रही थी।
और मौसी के मुंह में झड़ने के बाद मौसी को उठा कर बेड पर पटक दिया।
मैं नीचे बैठ गया अब मौसी की चूत बिल्कुल मेरे सामने थी और पैंटी के अंदर कैद थी।
बिना देर किये मैंने पैंटी निकाल कर सुघाने लगा।
मौसी बोली- दारू सामने पड़ी और तू चखने से काम चला रहा है।
मैं- अरे शालिनी याद करो यहीं वो चखना है जहां से हम लोगों की शुरुआत हुई थी।
मौसी- हां ना उस दिन तू मेरी पैंटी सुंघता और ना तुझे ये सब कुछ देखती है और नहीं हम लोग पति पत्नी बनते हैं।
इतना कहे मौसी ने मेरा मुँह अपनी चूत से लगा दिया, मैं उनकी चूत को चटाने लगा मौसी लगा सिसकने लगी।
Oh yes shailu aah uumh aah ऐसे ही अपनी जीभ से चोदो आह!
मौसी की निकलें बाली आवाज मुझे बहुत मदहोश कर रही थी।
मौसी की चूत को चाटते जा रहा था मौसी अपने हाथ मेरा सिर दबा रही थी।
मौसी थोड़ा पीछे हुई थी, और बिस्तर पर आके लेट गए।
मै और मौसी 69 की पोजीशन में थे।मौसी मेरा लंड मेरे लिए अन्दर बाहर कर रही थी।मैं उनकी बुर चाटते जा रहा था।
मौसी देख पहले कितना छोटा था ये मेरे मुँह में लॉलीपॉप की तरह लगता था। अब देख कितना बड़ा है एक मोटे केले के जितना तेरी बीवी हमेशा तुझ से खुश रहेगा।
मैं मौसी की चूत चाट रहा था लेकिन अब मैं रुक गया था।
मौसी- क्या हुआ क्यू रुक गया।
मै बेड में साइड होकर किनारे बैठ गया।
मौसी- अब बोलेंगे भी तुझे क्या हुआ है।
मैं- आप ही मेरी बीवी हो और कोई नहीं, आप जगह कोई नहीं ले सकते।
मौसी- अरे मेरा बाबू नाराज़ हो गया फिर मौसी बिस्तर के ऊपर खड़ी हुई और मेरे मुँह पर अपनी चूत रख दी।
मैं कुछ नहीं कर रहा था।
मौसी, बेटा चाट ले ऐसे सिर्फ नसीब बालो को ही मिलती है।
मैं फिर से मौसी की चूत को चाटने लगा।
मौसी मेरे ऊपर बैठ कर आह उह की आवाज़ निकल रही थी।
मौसी ”aaahhhh....uhuh...aah….umm……AAAhhhhhh….” मै आने वाली हूं।
मौसी की चूत ने पानी मेरे मुँह में छोड़ दिया लेकिन मैं हमेशा की तरह एक बूंद भी बर्बाद नहीं होने दी।
हम दोनों झड़ने के बाद लेट कर बाते करने लगे ।
मैं- शालिनी आज तुम्हारी चूत चाटने में अलग ही मजा आया।
मौसी - हां पतिदेव इतने दिन बाद करोगे तो मजा तो तुम्हे तो मजा आयेगा।और मै तो ऐसे भूखी रहूंगी।बिचारी मेरी चूत ।
तेरी शादी हो जायेगी तू मुझे भूलेगा तो नही ना।
मैं - अरे शालिनी तुम मेरी पहली प्राथमिकता हो। यह सब बोल कर अच्छे खासे मूड की मां मत चोदो।
अच्छा चल अगर रेस्ट कर लिया हो तो आगे का काम शुरू कर।
शालिनी मेरे लन्ड सुख गया है। जरा अपने मुंह में लेकर इसे गीला करदे मेरी रांड़ ।
मौसी लेटी थी मे लन्ड लेकर उनके मुहुं के पास गया और लन्ड को मूंह लेकर आगे पीछे करने लगी।
मैं बैठ कर एक हाथ से दूध दबा रहा और दूसरे हाथ से मौसी की चूत में उंगली कर रहा ।
लन्ड उनके मुंह से निकल कर चूत को चाट कर उनकी चूत पर थूक कर टांगो को अपने कंधों पर रख कर लन्ड को चूत पर सेट किया और एक झटका दिया।
मेरा लंड चूत को चीरता हुआ अन्दर जाने लगा और मौसी ‘ऊई ईईई ऊईई ई आहह हह’ करके चिल्लाने लगी और छूटने के लिए छटपटा रही थी।
पर में ऐसे ही कहां छोड़ने वाला था।एक बार फिर जोर से धक्का लगाया।
मेरा लन्ड बिना किसी दिक्कत के पूरा मौसी की चूत के अंदर घुस गया।मौसी की आंखों से आसूं निकल रहे थे।
लेकिन मेरे लन्ड के आगे चूत के दर्द का थोड़ा भी अहसास नहीं था।
बड़ी बेरहमी से मौसी को चोदने लगा।
मैं मौसी की चूत में लन्ड आगे पीछे किए जा रहा था मौसी मदहोश करने वाली आवाजे निकाल रही थी।
कुछ धक्के लगते दर्द गायब सा हो गया था।
क्योंकि अब मौसी मजे से चुत चुदाई कराने लगी।
चूचियां को तेज़ तेज़ दबाना शुरू कर दिया और हर झटके से मौसी मजा ले रही थी।
‘ऊई ऊइई ऊईई ईई आहह हहह आह हहह … छोड़ो मुझे छोड़ो …’ चिल्लाती रही लेकिन मैं पागलों की तरह चोदता रहा।
मेरे मोटे लंड ने आज चूत का भोसड़ा बना दिया था।
मुँह से सिसकारियां निकल रही थीं- आह्हह उम्म्म आह्ह आह्ह हाए आह्हह!
इन्हीं आवाजों के साथ मैं चुदाई के नशे में खो गया था।
अब मैं चुदाई के मज़े का आनन्द उठा रहा था और मौसी अपनी कमर उठा उठा कर साथ दे रही थी.
साथ ही चिल्ला रही थी- आह मुझे जोर से चोद … हां हां हां ऐसे ही चोद अपनी रण्डी मौसी को चोद ऐसे ही ऊह आह ओह … ओह … आऊ!
मैं बोले जा रहा था- ले ले और ले … और अन्दर तक ले … तेरी चूत प्यासी है … प्यास बुझा अपनी चूत की!
कुछ देर बाद मेरा बदन अकड़ने लगा.
अब शायद मै झंडने वाला हूं। शालिनी कहा पर छोड़ूं,
मौसी - मेरा भी होने वाला है।
मौसी ने लन्ड निकाल अपने बूब्स में फसाकर आगे पीछे करने लगी। मैं भी उनके बूब्स में झटके मारने लगा।
कुछ ही समय में उनके मुंह और बूब्स के बीच झड़ गया।और निढाल होकर मौसी के ऊपर ही लेट गया।
हम दोनो एक साथ झड़ गए थे।
थोड़ी देर बाद ऐसे ही सो गए आंख खुली होगी लगभग शाम 6 बजे आंख खुली होगी। (अब कैरेक्टर से बाहर आ रहा हूं)
मोबाइल किनारे रख कर मौसी के बारे में सोचने लगा।क्या सेक्सी आइटम है। अब शायद मुझे भी मौसी से सेक्स ज्ञान लेना होगा। लेकिन अभी जब भैया मौसी से दूर होगे तभी मेरा काम आसान होगा क्यों की जब तक भैया की शादी नही होती तब तक मेरा कुछ नही हो सकता।लेकिन मन में डर भी था। आज तो मौसी ने बहुत मुश्किल से ही माफ किया था।
मैने इतनी मस्त पोर्न आज तक नही देखी अब तक मै बेड पर ही 2 बार झड़ चुका था।
मौसी की चुदाई के हसीन सपने देखने लगा और पता ही नही चला कब सो गया।
मेरी आंख खुली होगी सुबह 7 बजे।
“भाई आगे के अपडेट चाहिए तो बताना स्टोरी कैसी है नही तो यही से बंद कर दूंगा कुछ लोगो को अच्छी ना लगने के कारण”