• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Adultery सपना या हकीकत [ INCEST + ADULT ]

DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
7,113
19,946
174
सभी भाइयो और मेरे पाठको को दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं और बधाई
💥💐💥
उम्मीद करता हूँ ये दीवालि आपके जिवन खुशियो से भरपूर और मस्त रही हो

एक अनुरोध है सभी से ये कहानी का अगला भाग नये साल यानी 2025 से ही शुरु हो पाना संभव है
तो मेरी दुसरी कहानी अम्मी vs मेरी फैंटेसी दुनिया को तब तक पढे

जब ये कहानी शुरु होगी
सभी को सूचित किया जायेगा

एक बार फिर सभी का धन्यवाद
 

Lutgaya

Well-Known Member
2,159
6,168
159
अगले अपडेट का इन्तजार है
 

Incestlover

Member
194
418
78
जैसा सोचा था एकदम वैसा ही धमाकेदार ।
जहां तक मुझे समझ आया है आप जांगीलाल और निशा के लिए रास्ता क्लियर कर रहे हैं क्योंकि जांगीलाल तभी आगे बढ़ेगा जब सेक्सुअली frustated होगा बाकी तो आप ही जानो ।
 

DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
7,113
19,946
174
जैसा सोचा था एकदम वैसा ही धमाकेदार ।
जहां तक मुझे समझ आया है आप जांगीलाल और निशा के लिए रास्ता क्लियर कर रहे हैं क्योंकि जांगीलाल तभी आगे बढ़ेगा जब सेक्सुअली frustated होगा बाकी तो आप ही जानो ।

bahut-tez
 

TharkiPo

I'M BACK
4,762
15,338
159
UPDATE 135

पिछले अपडेट मे आपने पढा एक ओर जहा राहुल और निशा की चुदाई हो गयी थी , वही राज ने काजल भाभी को लपेटना शुरु कर दिया है देखते है आगे राज का क्या प्लान बनता है ।

अब आगे


राज की जुबानी

निशा से फोन पर और फिर काजल भाभी से whatsaap पर बात की और दुकान के काम मे लगा रहा ।
शाम को अनुज रोज की तरह राहुल से मिलने गया और वापस घर की ओर निकल गया ।

रात के 8 बजने के करीब थे और मै दुकान लगभग बढा चुका था कि शालिनी चाची दुकान पर आई ।

चाची को इस समय अचानक से दुकान पर देख कर मै चौक गया
मै - चाची आप यहा इस वक़्त ? सब ठिक है ना

चाची मुस्कुरा कर - हा रे । मुझे क्या होगा ?

मै - आप इतने टाईम यहा , मा तो घर पर है
चाची मुस्कुरा कर - अरे लेकिन मुझे तो तुझसे काम है ना

मेरी आंखे चमकी कि कही चाची उस दिन दोपहर वाली अधूरी कहानी पूरी करने तो नही आ गयी । क्योकि आखिरी बार जब वो आई थी तो मस्त मुह पेलाई से काम चलाना पडा था ।

मै मुस्कुरा कर - अरे तो ऐसे बोलो ना कि अपने बॉयफ्रेंड से मिलने आई हो

चाची ने इधर उधर देखा और शर्मा कर - धत्त बदमाश ,,कोई सुन लिया तो

चाची - वो तो मै ब्रा लेने आई हू
मै - अच्छा ठिक है आप बैठो मै ये सामान रख दू फिर आपको दिखाता हू

फिर मैने फटाफट समान हटाया और शटर गिरा दिया

चाची - अरे बेटा क्या कर रहा है ये ,,,आस पास की दुकाने खुली है और तु

मै हस कर - आप नही चाची,,, आप अपने घर मे है किसी बाहर के गैर के साथ नही हिहिही और उपर से आपका बॉयफ्रेंड हू मै हिहिहिहिही

ये बोल कर मै चाची की कमर मे हाथ डाल कर उन्हे अपनी ओर खिच कर उनके रसीले होठो को चूसा
चाची पहले तो कसमसायी लेकिन मेरे हाथ जब उनकी नंगी मुलायम कमर पर रेंगते हुए उपर पीठ की ओर बढने लगे तो वो भी अपने आप को ढिला करते हुए मेरे होठ चूसने लगी ।

उनका साथ पाते ही मैने अपने दोनो हाथो को उन्के जिस्म के पीछले हिस्सो को सहलाना शुरु कर दिया ।
उनके उभरे हुए चुतडो से उपर के कन्धे तक कमर पीठ सब
चाची मेरे स्पर्श से सिस्कने लगी और सारा बदला मेरे होठो को निचोड कर निकालने लगी ।

मेरा लण्ड तो उनके आने से ही तना हुआ था और अब तो और भी मोटा हुआ जा रहा था ।
इसिलिए मैने लोवर मे हाथ डाल कर लास्टीक के उपर से लण्ड को निकाला और उनका एक हाथ पकड कर उसपे रख दिया ।

चाची मेरे गरम लण्ड को छुते ही सिहरि मगर उन्के होठ मेरे गिरफ्त मे थे जिससे उनका सीना फुल गया ।
उन्होने उसे आगे की ओर भीचना शुरु कर दिया

मैने उनके होठ छोडता हुआ - अह्ह्ह चाची थोडा आराम से उह्ह्ह्ह सीई उफ्फ्फ

चाची - ओह्ह्ह बेटा कितना मोटा हो गया है रे पहले से उम्म्ंम्ं

मै - ये अपनी जान को देख कर हो गया है ,,,
मै उसके चुचे उपर से मसल कर बोला

चाची आन्खे बन्द करके मेरे हाथो का मर्दन अपने स्तनो पर मह्सूस करके मेरे लण्ड को आगे की ओर मुठियाते हुए सिस्कने लगी ।

मैने उनको घुमाया और पीछे होकर साड़ी का पल्लू हटाते हुए ब्लाउज के उपर से दोनो चुचियो को थामते हुए मसलना शुरु कर दिया ।

क्या मस्त कड़क चुचिया थी चाची की । लगता ही नही कि दो बच्चे जवान हो गये है । जैसे किसी नयी शादीशुदा औरत जितनी कसावट थी इनमे ।

मै एक एक करके बटन खोले और बिना ब्रा वाली चुचियो को नंगी ही हाथो मे भरने लगा

उफ्फ्च ये नुकिले निप्प्स हहह क्या कड़कपन है ,, जैसे ही मेरी हथेलीया चाची के तने हुए निप्प्लो पर घुमे । चाची ने और गहरि सास भरी और कसमसाने लगी ।
मैने वापस से वही दुहराया और फिर उनकी चुचियो को मिज्ने लगा


मै - ओह्ह चाची कितना मस्त चुची है आपकी ,,,इतना कसा कैसे है ओह्ह्ह

चाची - हा लेकिन तु जैसे मसल रहा है ,तेरे चाचा ऐसा करते तो कबकी ढीली हो जाती

मै - ओह्ह तो फिर चाचा को क्या पसन्द है आपमे उम्म्ंम

चाची सिस्क कर - वही जहा तेरा मुसल बार बार ठोकर मार रहा है
मै जोश से भर गया कि चाचा को चाची की गाड़ बहुत पसंद है ।

मै अपना लण्ड अब चाची के गाड़ पर चुभोता हुआ - ओह्ह फिर तो क्या चाचा रोज रोज

चाची - सीई उह्ह्ह हाआअह बेटाहहह रोज मारते है अह्ह्ह ,, आगे से ज्यादाआह्ह तो उन्हे पीछे ही उम्म्ंम ओह्ह अराअम्ंं से बेटाहह ओह्ब माआआह्ह

मै उनकी चुची मस्लता हुआ - तो मुझे नही दोगी चाची उम्म्ंम


चाची - उम्म्ंम क्या लेगा बेटा बोल ना ,,,सब तेरा ही है रे अह्ह्ह उम्म्ंम

मै गहरी आह्ह्ह भरता हुआ - चाची उम्म्ंम मुझे भी आपकी गाड़ चोदनी है

चाची सिहरि - अह्ह्ह तो लेले ना बेटा उम्म्ं लेकिन जल्दी कर उम्म्ंम

मै चहका - तो जल्दी से चुसो मेरा लण्ड फिर मै जल्दी से आपकी गाड़

चाची घूमी और मुझे एक नजर मादकता से देखा और घुटनो के बल होकर बैठ गयी ।
मैने मेरे लोवर और अंडरवियर को थोडा निचे किया । फिर चाची ने हौले से मेरे लण्ड को थामा

चाची - ये तो बड़ा गरम है रे उम्म्ं उम्म्ं सरर्र्र्रृऊऊपपपपप उम्म्ंम गुउउउऊगऊऊउऊ अह्ह्ह्ह्ह उम्म्ंम

मै - ओह्ह्ह चाची उम्म्ं मस्त चुसते हो आप अह्ह्ह
मेरा लंड तो जैसे चाची के मुह मे घुलने ही लगा था ,, उनकी उंगलिया मेरे आड़ो को छू रही थी । मै जैसे उड़ने को हुआ मेरी एडिया अनायास ही उठने लगी और लण्ड चाची के गले मे उतरता रहा ।

अगले ही पल चाची ने खासते हुए ढेर सारे लार के साथ मेरा लण्ड उगल दिया ।
मगर मै कहा से रुकता ,,उनके बालो को पकड कर चेहरा उपर की ओर करके अपना लण्ड उनके मुह पर रगड़ने ल्गा और दो तिन बार उन्के होठो पर पटका जिससे मेरे शुरुवाती वीर्य की कुछ बुन्दे टपक पडी ।

चाची ने फौरन लपक कर मुह मे लण्ड भर लिया और निचोडने लगी ।
मै - ओह्ह चाची सारा माल ऐसे ही पी जाओगी क्याआह्ह्ह ,,, उठो ना मुझे आपकी गाड़ मे डालना है इसे

चाची मे मुह से लण्ड निकाला और लार से लभेड़ाये मेरे लण्ड को मुठियाते हुए एक कामुक मुस्कुराहट भरी नजरो से मुझे देखा और खड़ी हो गयी ।

चाची - वो तेल वाली शीशी खोल पहले
मै जानता था चाची अपने शरीर को लेके बहुत फोकस औरत है । खासकर सेक्स के दौरान कोई भी लापरवाही नही बरतती है । हमेशा सेफ़ सेक्स के लिए ही जाती है ।

मैने मुस्कुरा कर एक नारियल तेल की छोटी सीसी उठाई और चाची ने भी अपनी साड़ी उठा कर पैंटी निकाल दिया ।

फिर काउंटर के सहारे झुक कर मुझे अपनी कसी हुई मुलायम पाटो वाली गाड़ दिखाते हुए अपने कूल्हो पर हाथ फेरने लगी ।

मैने तेल की पतली शीशी का ढक्कन खोला कर टिप टिप करके एक एक बूंद चाची की गाड़ के दरारो मे गिराने लगा ।

जैसे जैसे तेल दरारो से रिस कर गाड़ की सुराख की ओर जाता वैसे वैसे वो अपने पाटो को सख्त करती जा रही थी ।
फिर मैने अपनी चार उंगलियो मे तेल को च्भोड़ा और चाची के गाड़ के दरारो मे घिसते हुए उन्के गाड़ की छेद पर ले गया ।

चाची सिस्क उठी , उत्तेज्ना तो मुझे भी हो रही थी और लण्ड उनकी गाड़ मे घुसने को बेताब था ।
मैने थोडा सा उनकी गाड़ के सुराख के पास तेल को मलने लगा

चाची - उम्म्ंम्मा अच्छे से लगाना बेटा अह्ह्ह उगली डाल के अह्ह्ह ऐसे ही हा हा और थोडा तेल लेके अच्छे से लगा दे ,,,

मै मुस्कुराया और चाची की गाड़ मे दो ऊँगली पेले हुए उनकी चुतड के दरारो को फैलाये रखा और उपर से टिप टिप करके थोडा तेल और अपनी दोनो उंगलियो पर लिया और खचाखच तेजी से चाची की गाड़ मे ऊँगलीया पेलने लगा

चाची - ओह्ह लल्ला आराम से उह्ह्ह्ह उम्म्ं माआह्ह सीईई ओह्ह

मैने देखा जल्द ही चाची की गाड़ नरम होने लगी । मैने अपने लण्ड पर अब तेल गिराना शुरु किया और अच्छे ल्भेड़ कर पिचिर पिचिर की आवाज से उसे मुठियाते हुए चाची के गाड़ के सुराख पे ले गया।

चाची गहरी सास लेते हुए - उसपे भी अच्छे से तेल लगाया है ना बेटा,,,उम्म्ंम थोडा धीरे धीरे करके डालना

मै अपना अंगूठा चाची के गाड़ मे घुसेड़ कर पेल रहा था और दुसरे हाथ से लण्ड मुठीयाते हुए सोच रहा था - साली अभी देख ऐसे फाड़ दूँगा कि दोबारा से इतने नाटक नही करेगी ,,ये कर वो कर ऐसे कर । पता नही चाचा को कैसे कैसे रोक लगा कर उन्हे चोदने देती होगी । हर बात के लिए टोका टाकी । शायद तभी चाचा ने लव मैरिज करने के बाद भी बडी बुआ को चोदा होगा ।

मैने थोडा आवेश मे लण्ड को भीचता हुआ गाड़ के सुराख पर ले गया और सुपाड़े को दबाते हुए पच्च करके लण्ड घुसेड़ दिया ।

चाची थोडा दर्द से छटकी मगर मैने कोई रहम ना दिखाई और लण्ड को आधा घुसेड़ दिया ।

मै जानता चाची दर्द मे है और मेरा लण्ड उनकी गाड़ मे फसा हुआ है इसिलिए वो बोलती उस्से पहले मैने ही पहल कर दी - चाची थोडा तेल और डाल दू

चाची सिस्कर कर - अह्ह्ह हा बेटा डाल दे आह्ह बहुत दर्द है ,,तेरा तो बहुत मोटा है रे अह्ह्ह माअह्ह

मैने वापस से चाची की गाड़ मे आधा लण्ड ही आगे पीछे करके तेल को गाड़ के छल्ले के पास अपने लण्ड पर गिराने लगा ।जल्द ही मेरा लण्ड फ्री हुआ और अब उनकी गाड़ ने भी जगह देदी थी।
मै अब धीरे धीरे करके लण्ड उनकी गाड़ की गहराई मे ले जाने लगा।

चाची - ओह्ह्ह बेटा अह्ह्ह सीईई अह्ह्ह मस्त लण्ड है रे तेरा अह्ह्ह माआआआ उम्म्ंम पेल ऐसे ही ओह्ह्ह

जब पुरा लण्ड आराम से उनकी गाड़ मे अन्दर बाहर होने लगा तो वो भी अब मजे लेने लगी और कामुक सिसकिया लेने लगी ।

मुझे भी उनकी कसी हुई गाड़ मे लण्ड घुसाने मे बहुत मजा आ रहा था।इतना मजा कभी शिला बुआ की गाड़ मे नही आया । चाची की कमर भले ही पतली थी लेकिन गाड़ की चर्बी बहुत ही फैली हुई थी और जैसे जैसे लण्ड मै उन्के गाड़ मे घुसाता , वैसे ही उन्के पाट दोनो ओर फैल जाते

बहुत ही मजा आ रहा था । लण्ड अपनी गति पर था और फचाफच मै उनकी गाड़ मे पेले जा रहा था । बिच मे एक बार चाची ने फिर से तेल डालने को कहा और इस बार तेल डालकर मैने उनके कूल्हो को थामा और पेलता रहा जोरो से

दुकान मे थपथप की आवाज तेज थी साथ मे चाची के सिसकिया भी ।अगर कोई भी बाहर से मेरे शटर के पास कान लगाता को बडे आराम से उसे हमारी चुदाई का पता चल जाता । क्योकि दुकान का कुलर भी जोरो पर ही चल रह था तो ज्यादा बाहर आवाज जाने की चिंता नही थी ।

चाची तो झड़ रही थी और गाड़ मे लण्ड को कसे जा रही थी । मै भी धक्के की गति बढाई और ताबाड़तोड धक्के लगाते हुए उनकी गाड़ मे झड़ने लगा ।


आखिरी बूंद तक मैने चाची के गाड़ मे झड़ा और जब लण्ड बाहर निकाला तो मेरा माल निचे दुकान की फर्श पर तपक रहा था । निचे तो काफी सारा तेल और चाची की चुत का पानी भी गिरा हुआ था ।

मै मुस्करा कर दुकान पर एक डोरमैट पैर से खिच कर उस जगह पर रख दिया ताकी ज्यादा दाग ना बने और सुबह मे आकर उसे साफ कर दूँगा मै ।

मैने एक रुमाल लिया और चाची के गाड़ मे घुसेड़ दिया । चाची चिहुकी - हीईईए बदमाश कही का ,


मै - हिहिहिही अरे रहने दो ना चाची बहेगा नही हाहहहा
चाची मुस्कुरा कर उस रुमाल को अच्छे से गाड़ से निकाल कर अपनी चुत साफ किया और फिर पैंटी पहन ली ।

फिर हम दोनो उपर गये और हाथ धुल कर निचे आये ।

फिर मैने उन्हे उन्की पसंद के ब्रा और काटन टेप दिये ।

मै मुस्कुरा कर - तब चाची फिर से कब आओगे ब्रा लेने हिहिहिही

चाची थोडा कुल्हे को थाम कर - उम्म्ंम देखती हू ,,लेकिन आज तुने अपने चाचा का हिस्सा ले लिया । उनको तो आज सुखे ही रहना पडेगा

मै हस कर - क्यू आगे वाला है ना हिहिहिहिही

चाची - नही रे उनको तो बिना पीछे से लिये नीद नही आती और आज तुने जो किया है उससे मै आगे भी नही देने वाली

मै हस कर मुठियाने का इशारा करता हुआ - मतलब चाचा को आज .....हिहिहिही।

चाची - धत बदमाश कही का ,चल मै जाती हू बहुत लेट हो गया है

मैने भी घड़ी देखी 8.30 हो गये थे । मतलब पिछले आधे घंटे से चाची की गाड चुदाई ही जारी थी ।

फिर मै भी दुकान मे ताला लगा कर निकल गया चौराहे पर ।

वहा गया तो मा ने थोडी पुछ ताछ की ।आज लेट क्यो हुआ तो मैने भी ग्राहक का बहाना बना दिया ।


खाने के बाद अनुज ने मोबाइल मागा लेकिन मैने मना कर दिया । क्योकि आज मुझे काजल भाभी से बात करनी थी ।
इसिलिए मैने थकावट का बहाना करके मम्मी पापा को मना कर दिया ।

पापा ने थोडी आपत्ति की तो मा ने उन्हे थोडा डाट अपने साथ ले गयी ।
मै अपने कमरे मे गया और लेते हुए मोबाइल चेक करने लगा ।

रात के करीब 10 बज रहे थे और काजल भाभी ऑनलाइन थी ।
मुझे तो पता ही था इनकी मुझसे फटी हुई है तो मैने सोचा क्यू ना थोडा मजा लिया जाये

मैने मैसेज करना शुरु किया

मै - hiii bhaabhi 😍
काजल - hmm kaho

मै जानता था कि ये बहुत सावधानी से ही बात करेगी अब इसिलिए मैने भी सतर्कता रखी ।


मै - aur dinner hua apka
काजल - hmm aur apka
मै - abhi abhi pet full karake aaya hu
काजल - hmmm good

मैने देखा ये तो बस कोटा पुरा कर रही है और शायद कल के बाद से वो जो समान है वो मै इनको देदू तो ये मुझसे बात भी नही करे ,,पूरी तरह इग्नोर कर दे। मतलब इसे बहुत ही सोच समझ कर ही बात आगे बढानी होगी ।

मै - hmm lag raha hai aap mujhse naaraaj hai 🤔
काजल - nahi to 🤨
मै - dekhiye aap wo dophar wali baat ke liye tension na lijiye .
मै -Mujhpe bharosa rakhiye mai kisi se nahi kahunga 😊
काजल- hmmm thank you
मै - achcha ab smile kariye
काजल - 😊😊😊
मै - mujhe nahi lag raha ki aap muskura rahi ho ... rukiye videocall karata hu

मै तुरंत वीडियो कॉल किया लेकिन काजल ने उसे काट दिया ।

मै - kya hua 😓😒
काजल - Wo mai Abhi video call par baat nahi kar sakati
मै - kyu 🤔
काजल - wo maine raat waale kapde pahane hai 😄
मै - ohh sorry sorry bhaabhi please sorry ...lag raha hai aap apne gadgets ke saath 🤭🤭🤭
काजल - nahi paagal , wo maine night gown pahana hai to mana kar rhi hu
मै - Oh , Koi bat nahi
काजल - hmm
मै - achcha fir aap aaraam kariye. Mai kal aata hu parcel leke aapka
काजल - ha mai fone karungi ok
मै - Ha ok ... good nyt bhabhi & enjoy your time 😉😛
काजल - badmash kahi ke ,,,bye gn 😂


मैने थोडा राहत की सास ली चलो अच्छा हुआ ये नाराज नही हुई नही तो पक्का मेरा पत्ता कट जाता । अब कल इसके फोन का इन्तेजार रहेगा फिर देखता हू क्या हो सकता है ।


लेखक की जुबानी

एक ओर जहा निचे के कमरे सोया राज कल काजल के लिए प्लानिंग कर रहा था । वही ठिक उसके कमरे के उपर वाले कमरे मे अनुज बेचैन लेटा हुआ था ।

उसके दिमाग मे वो बाते घूम रही थी जो शाम को राहुल ने उसे बतायी थी । कि कैसे राहुल ने अपनी सगी बहन को पेल दिया कल रात को ।

अनुज का ध्यान एक पल को सोनल की ओर जाता , मगर जल्द ही वो वहा से कतरा जाता था क्योकि उसकी नजर में सोनल बहुत ही शांत और अच्छे विचारो वाली लड्की थी । वैसे भी वो लव मैरिज कर रही है तो मेरे साथ क्या वो किसी और के साथ अपने जिस्मो का सौदा नही करेगी ।

बस यही बाते अनुज को सोनल से काट कर निशा के करीब ले जाती , और उसका लंड उसकी मुठ्ठि मे कसने लगता ।

वो मन ही मन कलपनाये बुनता कि कैसे राहुल निशा को चोदा होगा ।
क्या वो दोनो ने बॉयफ्रेंड गर्लफ्रेंड बनकर चुदाई की या फिर भाई बहन वाले संवादो के साथ चुदाई की ।

अनुज मन मे - ओह्ह्ह्ह यार कितना मजा आया होगा राहुल को सीईई अह्ह्ह्ह ,,, काश मुझे भी निशा दीदी की चुत मिल जाये । मै तो इत्ना चोदूंगा की चुत फट जायेगी ।

अनुज निशा के संग चुदाई भरे ख्वाब देखता तेजी से लण्ड हिलाए जा रहा था - अह्ह्ह्ह मै तो उन्हे चोदते हूए भी दिदी ही बोलूंगा उम्म्ंम अह्ह्ह निशा दिदीईईई अह्ह्ह । फिर मै भी राहुल की तरह बहिनचोद हो जाऊंगा अह्ह्ह्ह क्या मस्त गाली है याररर

अनुज झडने के करीब था वो तेजी से लण्ड को हिला रहा था और बड़बड़ा रहा था - ओह्ह्ह्ह हाआ मै बहिनचोद हू उम्म्ं निशा दिदी को चोद के बहिनचोद बनूँगा अह्ह्ह्ज सीईई ओह्ह्ह दिदीईईईई मै अपना साराआ माल दिदी की चुत मे भर दूँगा अह्ह्ह्ह दिदीईई देखो ना मै झड़ रहा हू
अह्ह्ह मेरी निशा दिदीईई देखोओह्ह अह्ह्ह ओह्ह्ह

अनुज कमर झटक कर झड़ने लगा और काफी सारा वीर्य उसके लिंग से फुटने लगा
उस्के हाथ मे वीर्य चिपुडने लगा और रिसकर उसका अंडरवियर और जान्घे भीगने लगी ।

जल्द ही शांत हुआ और उसकी सासे अब भी तेज थी ।
मगर उसके चेहरे पर मुस्कुराहट थी ।

वो उसी अवस्था मे सो गया । ना उसने हाथ धुले ना ही अंडरवियर निकाला बस अपने ख्वाबो मे निशा को सोचता रहा ।


इनसब से अलग राहुल के कमरे मे निशा घोडी बनी हुई थी और राहुल उसकी चुत मे लण्ड पेले जा रहा था । आज भी उसकी वही विनती थी कि वो अनुज के सामने एक बार सेक्स के लिये राजी हो जाये ।

मगर निशा ने बडी शरारती अंदाज मे उसे झड़ा कर बिना उसके सवालो का जवाब दिये अपने कमरे मे निकल गयी ।

इधर जन्गीलाल आज बहुत उदास था क्योकि आज शालिनी ने उसे चुदवाने से मना कर दिया था ।
शालिनी तो सो गयी लेकिन जंगीलाल की आंखो से नीद गायब थी । महिने 7 8 बार ऐसा जरुर होता था कि शालिनी सेक्स के लिए मना कर देती थी । ऐसे मौके पर जंगीलाल को बहुत गुस्सा आता था क्योकि एक तो शालिनी का चुदाई के लिए अलग ही नखरे और टीटीममे होते थे । दुनिया भर की सुरक्षा सावधानियो से वो तंग आ चुका था । जन्गीलाल की बहुत इच्छा उठती थी वो बडी बेरहमी से एक बार शालिनी को नोच्ज खसोट कर पेले ,मगर लव मैरिज मे बीवी भारी ही रहती है ।
शालिनी को अपने बदन पर खरोच के निशान तक बरदास्त नही थे और वो इनसब मामलो मे बडी सख्त थी । क्योकि वो काफी मोर्डन तरीके से कपडे पहनती थी । ब्लाउज भी स्लिवलेस ही रहता और पीछे का गला भी मुस्किल से 3 से साडे तिन इन्च । ब्रा का चुनाव भी बहुत सोच समझ कर करती थी ।
नाभि से 6 उंगल निचे साड़ी पहनने की आदत ने ना जाने कितनो के लण्ड मे हवा भरी होगी ।

जन्गीलाल भले ही शालिनी को उसके सेक्स रिस्ट्रीक्शन के लिए कोसता लेकिन दिन के उजाले मे समाज मे हमेशा गर्व से छाती चौडी करके रहता था क्योकि उम्र के इस पड़ाव पर शालिनी की टक्कर मे कोई भी औरत नही थी । हा भले ही उससे गदराई जिस्मो वाली और कामुक अदाये दिखाने वाली लाखो मिलती लेकिन शलिनी के जिसमो को कसावट और सपाट पेट के सामने अच्छी अच्छी पानी भरती नजर आती थी । बस यही कारण था कि जन्गीलाल कभी सेक्स का गुस्सा शालिनी पर नही निकालता था ।

समय के साथ उसने अपनी बड़ी बहन शिला के साथ जबसे सम्बंध बना लिये । उसके बाद से उसका रसिकपना बढ गया । काम के बहाने कभी कभी बडे शहरो मे जाता तो वहा हॉटलो मे एक रात के लिये अच्छी से अच्छी और महगी रन्डी चुनता था । पूरी रात उस रन्डी को रौंद कर महिनो की अपनी भड़ास निकाल देता ।


इनसब अलग शालिनी तो थी ही चंचल और हाल के समय मे जबसे वो अपनी जेठानी रागिनी के साथ ज्यादा समय बिता रही थी उसके अन्दर भी बदलाव आने लगे । वो भी रागिनी के बातो मे आकर खुद को नारी सुख देने के लिए तत्पर होने लगी । उसे अब मर्दो को छेड़ कर उन्हे परेशान करने मे मजा आता था । ऐसा तो वो पहले कयी दफा अपने जेठ रंगीलाल के साथ कर ही चुकी थी । मगर राज ने उसे लपेट लिया और आज उसकी जो चुदाई की वो शालिनी अगले कुछ दिनों तक याद करने वाली थी ।



जारी रहेगी
Bahut hi khoob update bhai naye naye adhyay khul rahe hain kahani mein jo ki kafi rochak hain, chachi par yun roshni daalna kafi acha laga... waise bhi maal bhi wo kuch aisa hain baki Nisha Rahul anuj ka kya hota hai dekhna dilchasp hoga...
 
Top