क्या यार इतनी बढ़िया कहानी चल रही थी।
पर कुछ चूतिया लोग अपनी गांड घुसाने लगे इसमे।
उनको ये क्यों समझ नहीं आता कि यह site बस कल्पनाओं की दुनिया है।
लेकिन कुछ चूतिया इस site को हक़ीक़त मानते हैं।
यहां बहुत सी कहानियां भिन्न भिन्न धर्मों से है।
लेकिन हम लोगों ने कभी objection नहीं लिया। क्योंकि हम लोगों का मानसिकता इतनी घटिया नहीं है कि कल्पनाओं को हक़ीक़त मानकर उसमे अपनी नाराजगी जाहिर करें।
अगर ऐसा अगर हम लोगों ने ऐसा करना शुरू कर दिया तो लगभग आधी कहानियाँ बन्द करनी पड़ जाएंगी।
और ये जो भी हैं जिन्हें इस कहानी से आपत्ति है। उनका मक़सद बस लेखक के मनोबल को गिराना है।
मैं बस इतना ही कहूंगी कि
आप बहुत अच्छा लिख रहे हैं
आगे भी लिखते रहिये।