• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Adultery Shaadishuda Kamini ki Chudai Bhari Zindagi !!

parkas

Well-Known Member
26,839
59,936
303
उनकी गांड मेरी दी गयी थप्पड़ से नीचे लड़खड़ा गई और उनकी शारीरिक भाषा ने मुझे बतायी कि वह और अधिक स्पांकिंग (spanking) चाहती थी क्योंकि उन्होंने अपनी पीठ गाँड को और भी अधिक उजागर करी।मैंने अपना हाथ उठाया और इसे फिर से नीचे लाकर उनकी गाँड पर और एक थप्पड़ मारी, इस बार और कठिन। वह फिर से ज़ोर से कराहने लगी और अपनी अंगुलियों से अपने चूत की मालिश करती रही।



B82996-F3-4174-4-E16-910-C-E4103162-BDA2

मैं अब अपनी जीभ को उनके गाँड की छेद में धकेलने लगी । मेरे प्रेमीका की गाँड की छेद अच्छी तरह से चिकनी थी और मैं भूख से उनकी गांड के छेद को चूसने लगी। उनकी चूत का रस उनकी गाँड की छेद तक टपकने लगी , वह रस समृद्ध और मसालेदार थी और मुझे उसकी स्वाद बहुत पसंद आने लगी थी – चूत के रस की हर एक बूंद। आंटी, जो अभी भी अपनी योनी को अपनी उंगलियों से पंप कर रही थी, वासना के साथ कराहने लगी।



'आह, आह, ओह हाँ, अर्घ, रुको मत, रुको मत, आह्ह्ह्ह”



....'Mrs.अश्विनी की अंगुलियों के ऊपर उनके चूत का रस बह रहाँ था, प्यार का रस जुनून के तार बना रही थे जो बिस्तर के शीत तक फैल गए थे। उनकी गांड की छेद उस रस से भर गयी थी और उसे में बेतहाशा चाटने लगी थी।


मेरी लेस्बियन लवर के साथ सब कुछ संभव था । अब थकी हुई, Mrs.अश्विनी अपने घुटनों से अपनी पीठ पर लुढ़क गईं। उनका शरीर भारी हो गया था और उनके पैर फैले हुए थे। कामुक रूप से आवेशित और अत्यधिक गर्मी में, वह स्त्री कामुकता की दृष्टि थी। में किसी भी मर्द को अपना दीवाना बना सकती थी - और मुझे इतना गर्व था कि यह मैं थी, एक महिला, जिसे मेंने मेरे लिए इतना दीवाना बनाया था।


मैंने अब अपनी प्रिय की चूत को देखते हुए उसकी चूत से बहती रस पी ली। उनके चूत के बाल, हालांकि घने और काले और लंबे थे, उनकी योनी के काले होंठों को वह अब छुपा ना सकी।

उनकी चूत के दाने ने मुझे पागल बना दिया। यह अपने हुड से स्पष्ट रूप से उजागर हुआ थी, वह अश्विनी जी की उंगलियों द्वारा फूली हुयी थी, और यह अब बहुत बड़ा दिख रही थी। में घुटनों के बल नीचे उतरकर आंटी की चूत के दाने पर मेरे होठों को चूमने के लिए नीचे कर दी। अश्विनी आंटी केवल कराह सकती थीं।


'ओह आंटी, आप इस चूत की सुंदरता को अपनी कामिनी से छुपाती रही हो। यह बहुत सुंदर और बहुत कामुक है। मुझे अनुमान लगाना चाहिए था कि आपके पास मेरे लिए और भी बहुत कुछ हैं। मैंने फिर से अपना मुंह नीचे करी और इस बार अपनी जीभ से अपने प्रिय की चूत के दाने को मेरी जीभ से छेड़ने लगी।


उनकी चूत का दाना अब फड़फड़ाते हुए, पूरी उत्तेजित हुयी थी। यह मेरे लिए कामुकता से भरी एक दृष्टि थी। मैं मंत्रमुग्ध थी, नशे में थी। इस नारीत्व को मेंने किसी भी लंड से कम नहीं पायी। उनकी चूत इतनी कोमल और संवेदनशील और पूरी तरह से मेरा थी। मैं अश्विनी जो की बाहों में अपनी समलैंगिक यात्रा का अंत पूरी तरह से समाप्त करना चाहती थी।


में अब चूत की चुसाइ छोर कर जानबूझकर अपने कोमल स्तनों को उनके रसीले बदन पर दबाने लगी । मैंने अपने प्रिय को कसकर गले लगाया और उन्होंने अपने पैरों को मेरे चारों ओर बंद कर दिया, मुझे उनके बाहों में शामिल कर लिया। इससे पहले कि हम दोनों अपने होठों का मिलन करवाते , हम दोनों ने अपनी जीभ को एक-दूसरे की जीभ से मुलाकात करवाई और एक दूसरे के जीभ से खेलने लगे।



0-F7-D3-C9-B-32-EE-436-C-91-FA-14-D36743-DD9-A


फिर जैसे ही हमने चूमा मैं धीरे से अपनी योनी को उनके योनी के ख़िलाफ़ दबाने लगी। अपनी चिकनी चूत के खिलाफ आंटी की बालों वाली चूत का अहसास मुझे बेहद उत्तेजक लगने लगी ।



धीरे-धीरे मैंने अपनी चूत को आंटी के चूत के ख़िलाफ़ तब तक जकड़ रखी जब तक – डोनो की चूत एक दूसरे के चूत से दबा दी गई। हमारे बीच बिजली की एक चिंगारी चली। डोनो के चम्मे और भी अधिक भावुक हो रहे थे ।



“'प्रिय आंटी, क्या आप मुझे अपनी प्यारी योनि से चोदोगी? मुझे अपना बना लो – आज रात के लिए। आंटी ने मेरे गाल पर हाथ फेरा और मेरे चेहरे से बाल हटा दिए।



कामिनी तुम जानते हैं कि में दुनिया में किसी भी चीज़ से ज्यादा यही चाहती हूँ।


“मैं आपके लिए तैयार हूँ प्रिये।” में कराहने लगी। “मैं इसके लिए दिन भर से तैयार हूं - और मुझे लगता है कि आप भी तैयार हैं। अब बस मुझे चोदिए जल्दी से ”



अश्विनी जी फिर बोली - “ जल्दी करने की कोई जरूरत नहीं है: याद रखें, एक मर्द के विपरीत, एक महिला का प्यार मजबूत और अधिक भावुक हो जाता है जैसे-जैसे रात होती है।



मेरे पेट को अपने हाथों में पकड़कर, Mrs.अश्विनी ने मेरी योनी को उनके खिलाफ ले जाने में मेरी मदद करना शुरू करी । हम दोनों पूरी तरह से पसीने से गीले थे और हमारे होंठ फिर से एक गहरी चुंबन में चले गए।




अब अश्विनी जी में अपने कमर पर स्ट्राप-ऑन (strap-on) लगवाया और मेरी चूत के छेद पर उसे रख दी।



मैं तुम्हें चोद रही हूँ प्रिय, मैं तुम्हें किसी भी मर्द से बेहतर चोद रही हूँ, तुम्हारे पति से बेहतर, उन्हें भूल जाओ अब आज रात के लिए। यह वही है जो तुम चाहती हो यही तुम्हें चाहिए। मुझे अपना जुनून दिखाओ, मेरे धक्कों का साथ दो। में अब उनके धक्कों का साथ देने लगी और वह मेरी मस्त कुटाई करने लगे। ऐसा क़रीबन १५ मीन तक हमारी चुदाई चली।



18-CA1-FDC-A6-D6-4084-84-C8-DD88-C4752-CBD



फिर अश्विनी जी बोली की अब वह उनके चूत को मेरी चूत से चिपकाए वैसे ही मेरी चुदाई करने वालि थी। फिर उन्होंने स्ट्राप-ऑन निकाल लिया।



अब हम डोनो के चूत एक दूसरे के चूत से सेट हो गए। में अपने योनी से आंटी की योनी के खिलाफ जोर दे रही थी, मेरे पर उनके चूत के उभरे दाने की सनसनी हो रही थी, खुद को अपने कामुक ब्रह्मांड के किनारे पर चली गयी थी।



2-EC807-A9-E136-4245-A51-D-B0-E3-EA085-FFA


और फिर योनी के माध्यम से मेरा संभोग सुख बढ़ने लगा, मेरे प्रेमी के चूत के होठों पर मेरे चूत के रस का बह रहा था। ,

बार-बार मैंने अपनी भूखी योनी को अपनी आंटी के पके और बालों वाले चूत के खिलाफ धक्के देने लगी, मेरी गिली चूत अब पूरा पानी बाहर छोर्ने लगी।



केवल जब मेरे शरीर से सारी ऊर्जा निकल गई थी, मैं अपने प्रेमी की बाहों में गिर गयी और अपने चेहरा उनकी चूचियों में दबा दि । मेरे प्रेमी ने मुझे कस कर पकड़ लिया और मेरी पीठ थपथपाई, कस कर अपनी बाहों में जकड़े रखी । , मेरे प्रिय, ठीक है, माँ ने तुम्हें पकड़ लिया। आप मेरे साथ सुरक्षित हैं। मैं यहॉं आपके लिए हूँ। रोने की कोई जरूरत नहीं है। मैं तुमसे प्यार करता हूँ और मैं हमेशा तुम्हें चाहती हूँ। मेरा बिस्तर अब से तुम्हारा है। चिंता मत करो, प्रिय कामिनी।'







“ आप और मैं समलैंगिक प्रेमी बन गए हैं ।”

इतना कह कर आंटी ने अपनी छोटी उंगली से सोने की अंगूठी निकाल दी। उन्होंने मेरे बायें हाथ अपने हाथ में लेकर मेरी मध्यमा उंगली पर वह अंगूठी पहना दी।



अश्विनी जी बोली “ में जानता हूँ कि तुम्हारा एक पति है, कामिनी, लेकिन तुम्हारी कोई पत्नी नहीं है। इस अंगूठी से यह तय हैं कि मेरी समलैंगिक प्रेमी बस तुम हो।”




हम डोनो गले लग गए । मेंने रजनीश को कॉल करके बताया कि में आज की रात अश्विनी जी के घर में बिताऊँगी। उन्हें क्या पता था में तो अपने प्रेमी पत्नी के बिस्तर पर मस्ती भरी रात बिताने वाली हूँ।


CE2047-DA-2-DC3-4030-9-C49-F3144-F1-D7-C7-A


END OF PART 8
Bahut hi badhiya update diya hai HusnKiMallika ji....
Nice and excellent update.....
 
  • Love
Reactions: HusnKiMallika

HusnKiMallika

Active Member
1,555
2,677
144
Shukriya parkas ! Just hold ur regular comments till i post my latest update and its read by my readers .. this update should not get lost in the pages as its an important update ! 💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋
 
  • Like
Reactions: Mass and parkas

HusnKiMallika

Active Member
1,555
2,677
144
Kamini ke drishtikon se

स्वामी जी बोले “अच्छा तो कामिनी अब अगले दो स्टेप ऐसे रहेंगे ….”

स्वामी जी कुछ आगे बोले तभी मेंने उनके होठों पर अपने मुलायम उँगलिया रखे। स्वामीजी जी में बाक़ी का अभ्यास इस पर करूँगी लेकिन अभी मुझे आपका सकथ लंड फिर से चाहिए । देखो कैसे फूला हुआ लंड हुआ हैं आपका।” उनका लंड सच में ऊपर नीचे झूल रहा था और मेरी निघाएँ उनके उस मुसाल लंड पर ही टिकी हुयी थी।

ezgif-com-gif-maker-7


में उनके सक्थ लंड को अपने मुलायम हाथों में लेकर उसे रगड़ने लगी। स्वामीजी की आँखें बंद हो गयी और वह मेरे हंदजोब का आनंद लेने लगे। उनका मोटा लंड अब पूरी औक़ात में आया था , मेरी चूत भी काफ़ी गिली हो चुकी थी, मेरी चूत के होठं अब बाहर की तरफ़ खुले हुए थे। मुझे उनका लंड फिर से मेरी गरम चूत में चाहिए था। लेकिन स्वामी जी मुझे और तड़पाना चाहते थे ।

स्वामीजी बोले “ प्रिय मेरी दासी कामिनी इतने जल्दी नहीं। हर चुदाई से पहले तुम्हें नहाकर आना पड़ेगा।”

उन्होंने फिर उनकी दो हेल्पर लड़कियों को बुलाए और मुझे नहाने के लिए ले जाने को बोले। स्वामीजी बोले उन्हें की वह अच्छी तरह से मुझे नहलाये और वापस मुझे उनके पास एक दूसरे कमरे में 30 min में लाए। में कुछ कह नहीं पायी और उन दो लड़कियों के साथ चली गयी। उन्होंने मुझे नहलाया और फिर थोड़ी मालिश कर मुझे एक दूसरे कमरे में स्वामीजी के पास ले गए। लेकिन इस बार उनमें से एक लड़की वही रुकी हमारे साथ।

में रोब पहनी थी । मुझे फिर से स्वामीजी से चुदना था। उनका मोटा लंड फिर से देख मेरे दिल में छुरियाँ चलने लगी।



IMG-0610

मैंने उन्हें देखते ही रोब उतारना शुरू कर दि और चुदाई करने की मेरी उत्सुकता देखकर मैं देख सकती थी कि स्वामी जी बहुत खुश थे।

वो उस कमरे में सोफ़े पर थे और उन्होंने मुझे अपनी गोद में बिठा लिया, मेरे नितम्बों की कोमलता से अपने लंड को जगा दिया.

मैं महसूस करी कि उनकी मेरे नितंबों पर चुभन देने से , नीचे उनका लंड सख्त हो रहा है और मैंने स्वामी जी को गले लगा लिया, उनके खिलाफ अपने स्तनों को कुचल दिया।

स्वामी ने मेरे स्तन को अपने हाथ में लिया और निप्पल के चारों ओर अपना अंगूठा घुमाना शुरू कर दिया, लेकिन यह सुनिश्चित करते हुए कि निप्पल को न छुए। वह मुझे चिढ़ा रहे थे और मैं खुशी से हल्की-फुल्की हांफने लगी।

इसके बाद, बिना किसी पूर्व क्रीड़ा के उन्होंने मुझे अपनी गोद से उठा लिया और एक त्वरित और चतुर चाल में अपने अब सक्थ मोटे लंड को को मेरी गीली चूत में घुसा दिया। "उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़ आह्ह्ह स्वामीजी इईईई ", में ज़ोरों से कराह उठी और में मेरी चूत को पूरा भरा हुआ और पूरा फैला हुआ महसूस किया।



IMG-0613

अपने लंड को पूरी तरह अंदर रखते हुए, स्वामी ने मुझे उनके लंड पर उछालने नहीं दिया, बल्कि अपने चेहरे के सामने मेरे लटकते चूचियों पर ध्यान केंद्रित कर उन्हें चूसने लगे ।

उन्होंने मेरी चकहियों को और निप्पल्स को चबाया, चाटा, फिर से चबाया और, मेरी ज़ोरों की कराह सुनकर मेरी चुत के अंदर अपने लंड को ज़ोरों से पेलने लगे।

"अभी कुछ समय पहले की चुदाई कैसी थी कामिनी," उन्होंने मुझसे पूछा लेकिन में बस जोर से कराह रही थी।

"उफ़्फ़्फ हाँ मम्मम बहुत मस्त स्वामी जीईईईईई ", मैंने उनके लंड की परिपूर्णता का आनंद लेते हुए उत्तर दिया।

"बहुत मस्त जामदार चुदाई की आपने मेरी चूत की स्वामीजी", मैं बोली, और मैं अपनी गांड धीरे-धीरे उनके लण्ड पर उछालनी शुरू की।




मुझे ऐसी अवस्था में देखकर स्वामी ने मुझे कस कर गले से लगा लिया और मेरे होठों को काट लिया ।

अब अपने शरीर को कस कर गले लगाते हुए और जोश के साथ अपने शरीर को कुतरते हुए हम डोनो की चुदाई जारी रही।



108-B62-A0-4-E5-A-46-C4-8174-753-D1-E886770

फिर स्वामि जी अपने लंड को मेरी चुत में ही रखे , खड़े हो गए और मुझे उसी कमरे के बड़े बिस्तर पर ले गए।

स्वामीजी मेरे जैसी इतनी कामोत्तेजक महिला को देखकर हाथों में अपना लंड लेकर खड़े थे।

में देख सकती थी की वह एक लड़की अभी भी वहाँ कमरे में मेरी चुदाई देख रही थी। में देखी की us लड़की का ध्यान मेरी चूत पर था । में उस महिला को मेरी चूत देख हॉर्नी होते हुए महसूस करी।




स्वामीजी ने उस लड़की को मेरी ओर बुलाये और उसे बोले की वो मेरी चुदी हुयी चूत को चाटें। वह लड़की मेरे बगल में लेट गई और अपना मुँह मेरी गीली और रस से टपकती चुत पर रख दि।

मैं कराहने लगी, उस लड़की की जीभ की कोमलता को अपने भगशेफ को चाटते हुए महसूस कर रही थी। मुझे अपनी चुत उस लड़की से चटवाने का एहसास बहुत कामुक लग रहा था और मैं उस लड़की के साथ भी ऐसा ही करना चाहती थी।




मैं विलाप करी, "इधीर आओ उफ्फ तुम्हारी चूत, उफ्फ मुझसे दे दो"।

जल्द ही मैं और वह लड़की दोनों 69 की स्थिति में थे, एक-दूसरे की योनि को चूस रहे थे, चाट रहे थे और एक-दूसरे की चूत को अपनी उँगलियों से चोद रहे थे।



9-A8-E09-BF-19-FE-49-E5-8-BFD-CA9-EAB5352-FF

स्वामी जी यह देखकर बहुत उत्तेजित हुए होंगे और हमारे बगल में बैठ गए। उनहोने अपनी उंगली मेरी गांड में डाल दी और मेरी गांड के छेद को चोदने लगे , जबकि मेरी योनी उस लड़की द्वारा खाई जा रही थी।



मैं खुशी से कराह उठी और वह लड़की भी उसकी चरमोत्कर्ष पर पहुंच गयी थी।




स्वामी जी ने तब मुझे मेर पीठ के बल बिठाकर अपने सक्थ लंड को मेरे स्तनों के बीच रख दीया।

दूसरी लड़की समझ गई कि स्वामीजी मेरे स्तनों को और फिरमेरे मुँह को चोदना चाहते हैं और मेरे सिर के नीचे दो तकिए रख दिए, ताकि स्वामी मेरे स्तनों को रगड़ते हुए मेरे मुंह को चोद सके।

उन्होंने मेरे स्तनों पर अपने लंड को ज़ोर से दबाया और मेरी चूचियों के साइड को हाथों से सहलाने लगे, बीच-बीच में स्वामीजी अपने मोटे लंड को ठीक मेरे मुँह तक धकेलते रहे।



F9-CD14-F5-14-A6-4981-B7-BA-792930818-CD0

मुझे खुशी महसूस हुई क्योंकि स्वामी ने मेरे कोमल स्तनों को बहुत कस कर पकड़ लिया था ताकि मेरे कोमल स्तनों से अपने मोटे लंड से घेर सकें।


, "उफ्फ्फ कामिनी अब्भी तो तेरी गांडड में, अपना लुंड घुसूंगा"। यह कहकर उस बलवान स्वामी ने मुझे पलट दिया और पीछे से अपने मोटे लंड को बहरहमी से मेरी योनी में घुसा दी।

"उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़ अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्वामिजीईई तनिक धीरे से घुसाओ, दुखता हैं आऽऽऽ” में ज़ोरों से कराहने लगी । मैं एक बार फिर से स्वामीजी के बड़े लंड द्वारा मेरी चूत को पूरी तरह से फैला हुआ महसूस करी।

मुझे पता था कि सभी गठीले चुद्दकड मर्द मेरे जैसी युवा विवाहित महिलाओं को पीछे से चूत में चोदना चाहते हैं, हमारे नितंबों पर थप्पड़ मारते हुए और हमारे स्तनों को लटकते हुए , प्रत्येक चुदाई के स्ट्रोक के साथ झूलते हुए देखते रहे।

"क्या तेरे पति ने तुम्हारी ऐसी चुदाई करी है कामिनी ", उन्होंने पूरी तरह से जानते हुए पूछा कि ज्यादातर मामलों में रजनीश जैसे पतियों ने अपनी नवविवाहित पत्नियों को इस तरह से नहीं छेड़ा होता हैं।

"उन्नंग्घ्ह्ह ऊउउउआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआ ऊईईईई माऽऽऽऽऽऽऽ" में कराहने लगी

“अपनी माँ को क्यों याद कर रही हो, मजा नहीं आ रहा क्या", स्वामी ने मेरे नितम्बों पर जोरदार थप्पड़ लगाते हुए कहा। स्वामीजी के मेरी चूचियों पर उनके थप्पड़ों से मेरी चूचियाँ गुलाबी और लाल हो गए थे।

"उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़ म्म्म्म्म नहीं बहुत मज़्ज़ाऽऽ आ रहा हैं स्वामीजी म्म्म ऐसे ही मेरी चूत की चुदाई करते रहिए।

फिर स्वामी जी ने अपना कठोर लंड को मेरी चूत से निकाल लिया और अपने लंड सिर को मेरी गांड में घुसाने लगे।

"आहहह्हाह्ह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़ म्म्म्म्म्म्म स्वामीइईजीईइईईई आह्ह्हह आपका मोटा लंड उफ़्फ़्फ़्फ धीरे से आऽऽह बहुत दुखता हैं अह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़ स्वामिजीईई” मेरे आँखों से थोड़े आँसू आने लगे क्योंकि अब तक मेरी ज़िंदगी में स्वामीजी का सबसे बड़ा और सबसे मोटा लंड था जिसे मैंने अपनी गांड में ऐसे लिया था।


9-BC37-A03-3541-4-F94-A29-F-2-F75497-B5612


"बस तोड़ा दुखे गा, तेरी गांड बहुत तंग है ना मेरी इस मुसाल मोटे लंड के लिए, थोड़े देर बार तुम्हें बहुत मज्जा मिलेगा ", स्वामी जी ने ऐसे कहते हुए अब प्यार से मेरी गांड पर अपना हाथ फेरा।

मुझे लगा जैसे मेरे चूतड़ फट गए थे और में दर्द और खुशी से कराह निकालती रही।

ऐसी ५-८ मीन चुदाई के बाद अब मैं अब पूरी तरह से अपनी गांड को स्वामीजी के मोटे लंड की इस अनुभूति का आनंद लेने लगी और अब कम दर्द से और ज़्यादा खुशी से कराहने लगी।

स्वामी जि अपना लंड मेरी गांड में घुसाता रहे और मेरी गाँड की जमदार चुदाई करते रहे।

मैं चाहती थी कि उनका बड़ा मोटा लंड मेरी गांड को देर तक चोदता रहे और मैं इस कट्टर चुदाई का आनंद रात भर लेती रहु। स्वामीजी अब अपने ऑर्गैज़म के पास थे और मुझे उनका लंड मेरी गुदा की छेद में और फूलता हुआ महसूस करी। उनका लंड अब मेरी गाँड में फँसा धड़क रहा था ।




“आह्ह्हह कामिनी मेरी चुद्दकड दासी मेरा बीज तेरे गाँड की गहराई में डालने वाला हूँ ले लो उसे मेरी दासी बानो मम्मम” ऐसे कहते हुए उनका लंड धधकने लगा , उन्होंने मेरी कूल्हों को पकड़ कर अब ज़ोरों का धक्का देने लगे , “आह कामिनी मेरी फूहड़ उफ़्फ़्फ़्फ ले मेरा लंड तेरी इस चंचल तंग गाँड की छेद में आह्ह्हह”



554-C3059-F28-A-458-C-9349-E3-E854-D7-ACD3

में भी अब कराहने लगी, “आह्ह्हह हाँ स्वामीजी अब आप भी मेरी गाँड में अपने मोटे लंड में से आपका बीज से भर दीजिए अह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ क्या मस्त गाँड की चुदाई की हैं आपने मम्मम माँ करता हैं बार बार आपके पास आऊँ अपनी गाँड की जमकर चुदाई करने आह्ह्हह मेरी चंचल गाँड को और ज़ोर से चोदिए स्वामीजी उफ़्फ़्फ़्फ अह्ह्ह म्म्म्म्म”

मेरे बाल पूरे बिखरे हुए थे और में ज़ोरों से अब चिल्ला रही थी अह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ म्म्म्म्म्म आवाज़ें करते हुए।

अब स्वामीजी ने मेरी कमर को कस कर पकड़ कर एक ज़ोर के झटके और कराह के साथ मेरी गाँड की छेद के गहराई तक उनके लंड का गधा माल छोर्ने लगे।

उफ़्फ़्फ़्फ इतना सारा माल उनके लंड se उगलते हुए में महसूस करी, गधा गरम माल । वह २ मीन तक अपना वीर्य मेरी गाँड में चोर्टे रहे, इतना सारा माल की वह मेरी गाँड से बाहर भी टपकने लगा था। उनका लंड अभी भी मेरी गाँड की छेद में ही था और उनका लंड अभी भी मेरी गाँड में धधक ते हुए हम आराम करने लगे।




अगले दिन भी ऐसी ही मेरी चूत और गाँड की दो बार स्वामीजी ने जमकर ठुकाई करी।


D882-D237-6-D87-46-A9-8-B88-B3-FEE0-DB2-D02

ezgif-com-gif-maker-24 IMG-7638 23209072
————————————————

अब वहाँ का तीसरा दिन था । सुबह में नहाने चली गयी और नहा कर बाहर आयी तो मुझे बग़ल वाले एक कमरे में स्वामीजी की आवाज़ें सुन पा रही थी, वह किसी से फ़ोन पर बातें कर रहे थे।

में दरवाज़े के पास गयी और उनकी बातें सुनने लगी।

स्वामीजी बोल रहे थे “ हाँ यार सच कह रहा हूँ तुझे , एक मछली जाल में फँसी हैं!”

“ओह ऐसी वैसी माल नहीं हैं वो, शादी शूडा हैं लेकिन अभी भी काफ़ी जवान हैं , बस २१ की हैं ।”

मस्त फूहड़ हैं साली , ऐसी तंग गाँड का छेद हैं की मानो हर रात उसकी गाँड ही मारू!”



मुझे उनसे ऐसी बातें सुन शर्मा रही थी, उफ़्फ़्फ और एक मर्द मेरे प्यार में दीवाना हो गया हैं। में सोचने लगी।

लेकिन जो मेंने आगे की बातें सुनी उससे मेरी मुस्कान चली गयी।

स्वामीजी फ़ोन पर बोले “बताया ना उसका पति उसे अच्छी तरह से नहीं चोदता, साली को मस्त फँसाया हैं मेंने , उसके पति को cuckold बनाने की बात की उससे, उसे उसके पति को cuckold बनाने के कुछ स्टेप्स बताए और यह भी बताया की में ट्रीटमेंट करूँगा उसकी, साली बवक़ूफ मेरी बात माँ भी ली। तुम्हें तो पता हैं ऐसे कोई ट्रीटमेंट नहीं होता, बस उसके पति कोककल्ड वह खुद बनाएगी और फिर उसे मस्ती से में चोदते रहूँगा , उसके पति के सामने भी । और एक बात साली को लगता हैं में उससे प्यार करता हैं ना की बस चुदाई चाहता हूँ उसकी चूत और गाँड की।”

और स्वामीजी ज़ोरों से हसने लगे। यह सुन मुझे बहुत बुरा लगा। में सोचने लगी - यहाँ में पागलों जैसे उनके बातों में आ रही थी और मेरे प्यारे पति को अनजाने में cuckold बनाती। अच्छा हैं यह सब अभी सुनने को मिला, चलो अब यहाँ से निकलते हैं।-




में कमरे में गयी और मेरे कपड़े पहन कर वहाँ से तुरंत निकल गयी। बाहर मुझे कोई टैक्सी नहीं मिल रही थी, आख़िरकार वहाँ एक रिक्शॉ मिली और उसमें बैठ गयी।

स्वामीजी की बातें मेरे दिमाग़ में चल रही थी और जब ऑटो चालक ने मुझे पूछा की मुझे कहाँ जाना हैं तो में उन्ही ख़यालों में खोई हुई थी।




में देखी की रिक्शॉ वाला मुझे आईने से देख रहा था क्योंकि में निर्णय लेने में अपना समय ले रही थी।



"मैडम तेरे को किसी फ़ाइव-स्टार होटेल में जाने का है क्या", रिक्शॉ वाले ने मुझे पूछा। रिक्शॉ वाला मुझे कोई उच्च श्रेणी की वेश्या समझकर पूछ रहा था। में उसका इशारा समझ गयी और ग़ुस्से से बोली की मुझे स्टेशन जाना हैं।



IMG-7293

फिर से में सोच में पद गयी , (क्या सब मर्द जिनसे में चुदी हूँ , वह बस मेरे बदन से ही हवस करते हैं, क्या उन्मे मेरे लिए थोड़ा भी प्यार नहीं होगा, इस स्वामीजी की तरह बस मेरे बदन का इस्तेमाल करते हैं। मेरे ससुर जी भी ज़रूर मुझसे प्यार करते होंगे ? अब उस पर भी में डाउट करने लगी।

और रही मेरे प्यारे पति की बात। हाँ उनकी चुदाई अच्छी नहीं हैं और थोड़ा उनका हवस भी मेरे प्रति कम दिखता हैं, लेकिन वह मुझसे बेतहाशा मोहब्बत करते थे और मेंने उन्हें सिवाय धोके के क्या दिया हैं ! उनसे शादी भी बस सेल्फ़िश कारणों के लिए मेंने की थी। उनके सामने ससुर जी से भी चुदी हूँ फिर भी वह कुछ बुरा मुझे बोलते नहीं । में आज से एक अच्छी पत्नी बन्ने की कोशिश करूँगी। बस पति से ही जब चाहे चुदूँगी, मेरे ससुर जी से भी नहीं चुदूँगी । और घर के बाहर के किसी मर्द से तो में कभी नहीं चुदाई करूँगी।)

यह बात सोचते में स्टेशन पहुँच गयी और फिर अपने घर।

—————————————————


क्या कामिनी सच में अब एक अच्छी ना धोका देने वाली पत्नी बन कर रहेगी और बस अपने पति रजनीश से ही योंन सम्बंध रखेगी ? क्या कामिनी इस खुद को की गयी प्रॉमिस पर टिकी रहेगी ??????


END OF PART 13
 
Last edited:

Rajizexy

❤Lovely Doc
Supreme
45,404
47,069
304
Kamini ke drishtikon se

स्वामि जी बोले “अच्छा तो कामिनी अब अगले दो स्टेप ऐसे रहेंगे ….”

स्वामी जी कुछ आगे बोले तभी मेंने उनके होठों पर अपने मुलायम उँगलिया रखे। स्वामीजी जी में बाक़ी का अभ्यास इस पर करूँगी लेकिन अभी मुझे आपका सकथ लंड फिर से चाहिए । देखो कैसे फूला हुआ लंड हुआ हैं आपका।” उनका लंड सच में ऊपर नीचे झूल रहा था और मेरी निघाएँ उनके उस मुसाल लंड पर ही टिकी हुयी थी।

ezgif-com-gif-maker-7

में उनके सक्थ लंड को अपने मुलायम हाथों में लेकर उसे रगड़ने लगी। स्वामीजी की आँखें बंद हो गयी और वह मेरे हंदजोब का आनंद लेने लगे। उनका मोटा लंड अब पूरी औक़ात में आया था , मेरी चूत भी काफ़ी गिली हो चुकी थी, मेरी चूत के होठं अब बाहर की तरफ़ खुले हुए थे। मुझे उनका लंड फिर से मेरी गरम चूत में चाहिए था। लेकिन स्वामी जी मुझे और तड़पाना चाहते थे ।

स्वामीजी बोले “ प्रिय मेरी दासी कामिनी इतने जल्दी नहीं। हर चुदाई से पहले तुम्हें नहाकर आना पड़ेगा।”

उन्होंने फिर उनकी दो हेल्पर लड़कियों को बुलाए और मुझे नहाने के लिए ले जाने को बोले। स्वामीजी बोले उन्हें की वह अच्छी तरह से मुझे नहलाये और वापस मुझे उनके पास एक दूसरे कमरे में 30 min में लाए। में कुछ कह नहीं पायी और उन दो लड़कियों के साथ चली गयी। उन्होंने मुझे नहलाया और फिर थोड़ी मालिश कर मुझे एक दूसरे कमरे में स्वामीजी के पास ले गए। लेकिन इस बार उनमें से एक लड़की वही रुकी हमारे साथ।

में रोब पहनी थी । मुझे फिर से स्वामीजी से चुदना था। उनका मोटा लंड फिर से देख मेरे दिल में छुरियाँ चलने लगी।



IMG-0610

मैंने उन्हें देखते ही रोब उतारना शुरू कर दि और चुदाई करने की मेरी उत्सुकता देखकर मैं देख सकती थी कि स्वामी जी बहुत खुश थे।

वो उस कमरे में सोफ़े पर थे और उन्होंने मुझे अपनी गोद में बिठा लिया, मेरे नितम्बों की कोमलता से अपने लंड को जगा दिया.

मैं महसूस करी कि उनकी मेरे नितंबों पर चुभन देने से , नीचे उनका लंड सख्त हो रहा है और मैंने स्वामी जी को गले लगा लिया, उनके खिलाफ अपने स्तनों को कुचल दिया।

स्वामी ने मेरे स्तन को अपने हाथ में लिया और निप्पल के चारों ओर अपना अंगूठा घुमाना शुरू कर दिया, लेकिन यह सुनिश्चित करते हुए कि निप्पल को न छुए। वह मुझे चिढ़ा रहे थे और मैं खुशी से हल्की-फुल्की हांफने लगी।

इसके बाद, बिना किसी पूर्व क्रीड़ा के उन्होंने मुझे अपनी गोद से उठा लिया और एक त्वरित और चतुर चाल में अपने अब सक्थ मोटे लंड को को मेरी गीली चूत में घुसा दिया। "उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़ आह्ह्ह स्वामीजी इईईई ", में ज़ोरों से कराह उठी और में मेरी चूत को पूरा भरा हुआ और पूरा फैला हुआ महसूस किया।



IMG-0613

अपने लंड को पूरी तरह अंदर रखते हुए, स्वामी ने मुझे उनके लंड पर उछालने नहीं दिया, बल्कि अपने चेहरे के सामने मेरे लटकते चूचियों पर ध्यान केंद्रित कर उन्हें चूसने लगे ।

उन्होंने मेरी चकहियों को और निप्पल्स को चबाया, चाटा, फिर से चबाया और, मेरी ज़ोरों की कराह सुनकर मेरी चुत के अंदर अपने लंड को ज़ोरों से पेलने लगे।

"अभी कुछ समय पहले की चुदाई कैसी थी कामिनी," उन्होंने मुझसे पूछा लेकिन में बस जोर से कराह रही थी।

"उफ़्फ़्फ हाँ मम्मम बहुत मस्त स्वामी जीईईईईई ", मैंने उनके लंड की परिपूर्णता का आनंद लेते हुए उत्तर दिया।

"बहुत मस्त जामदार चुदाई की आपने मेरी चूत की स्वामीजी", मैं बोली, और मैं अपनी गांड धीरे-धीरे उनके लण्ड पर उछालनी शुरू की।




मुझे ऐसी अवस्था में देखकर स्वामी ने मुझे कस कर गले से लगा लिया और मेरे होठों को काट लिया ।

अब अपने शरीर को कस कर गले लगाते हुए और जोश के साथ अपने शरीर को कुतरते हुए हम डोनो की चुदाई जारी रही।



108-B62-A0-4-E5-A-46-C4-8174-753-D1-E886770

फिर स्वामि जी अपने लंड को मेरी चुत में ही रखे , खड़े हो गए और मुझे उसी कमरे के बड़े बिस्तर पर ले गए।

स्वामीजी मेरे जैसी इतनी कामोत्तेजक महिला को देखकर हाथों में अपना लंड लेकर खड़े थे।

में देख सकती थी की वह एक लड़की अभी भी वहाँ कमरे में मेरी चुदाई देख रही थी। में देखी की us लड़की का ध्यान मेरी चूत पर था । में उस महिला को मेरी चूत देख हॉर्नी होते हुए महसूस करी।




स्वामीजी ने उस लड़की को मेरी ओर बुलाये और उसे बोले की वो मेरी चुदी हुयी चूत को चाटें। वह लड़की मेरे बगल में लेट गई और अपना मुँह मेरी गीली और रस से टपकती चुत पर रख दि।

मैं कराहने लगी, उस लड़की की जीभ की कोमलता को अपने भगशेफ को चाटते हुए महसूस कर रही थी। मुझे अपनी चुत उस लड़की से चटवाने का एहसास बहुत कामुक लग रहा था और मैं उस लड़की के साथ भी ऐसा ही करना चाहती थी।




मैं विलाप करी, "इधीर आओ उफ्फ तुम्हारी चूत, उफ्फ मुझसे दे दो"।

जल्द ही मैं और वह लड़की दोनों 69 की स्थिति में थे, एक-दूसरे की योनि को चूस रहे थे, चाट रहे थे और एक-दूसरे की चूत को अपनी उँगलियों से चोद रहे थे।



9-A8-E09-BF-19-FE-49-E5-8-BFD-CA9-EAB5352-FF

स्वामी जी यह देखकर बहुत उत्तेजित हुए होंगे और हमारे बगल में बैठ गए। उनहोने अपनी उंगली मेरी गांड में डाल दी और मेरी गांड के छेद को चोदने लगे , जबकि मेरी योनी उस लड़की द्वारा खाई जा रही थी।



मैं खुशी से कराह उठी और वह लड़की भी उसकी चरमोत्कर्ष पर पहुंच गयी थी।




स्वामी जी ने तब मुझे मेर पीठ के बल बिठाकर अपने सक्थ लंड को मेरे स्तनों के बीच रख दीया।

दूसरी लड़की समझ गई कि स्वामीजी मेरे स्तनों को और फिरमेरे मुँह को चोदना चाहते हैं और मेरे सिर के नीचे दो तकिए रख दिए, ताकि स्वामी मेरे स्तनों को रगड़ते हुए मेरे मुंह को चोद सके।

उन्होंने मेरे स्तनों पर अपने लंड को ज़ोर से दबाया और मेरी चूचियों के साइड को हाथों से सहलाने लगे, बीच-बीच में स्वामीजी अपने मोटे लंड को ठीक मेरे मुँह तक धकेलते रहे।



F9-CD14-F5-14-A6-4981-B7-BA-792930818-CD0

मुझे खुशी महसूस हुई क्योंकि स्वामी ने मेरे कोमल स्तनों को बहुत कस कर पकड़ लिया था ताकि मेरे कोमल स्तनों से अपने मोटे लंड से घेर सकें।


, "उफ्फ्फ कामिनी अब्भी तो तेरी गांडड में, अपना लुंड घुसूंगा"। यह कहकर उस बलवान स्वामी ने मुझे पलट दिया और पीछे से अपने मोटे लंड को बहरहमी से मेरी योनी में घुसा दी।

"उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़्फ़ अह्ह्ह्ह्ह्ह्ह स्वामिजीईई तनिक धीरे से घुसाओ, दुखता हैं आऽऽऽ” में ज़ोरों से कराहने लगी । मैं एक बार फिर से स्वामीजी के बड़े लंड द्वारा मेरी चूत को पूरी तरह से फैला हुआ महसूस करी।

मुझे पता था कि सभी गठीले चुद्दकड मर्द मेरे जैसी युवा विवाहित महिलाओं को पीछे से चूत में चोदना चाहते हैं, हमारे नितंबों पर थप्पड़ मारते हुए और हमारे स्तनों को लटकते हुए , प्रत्येक चुदाई के स्ट्रोक के साथ झूलते हुए देखते रहे।

"क्या तेरे पति ने तुम्हारी ऐसी चुदाई करी है कामिनी ", उन्होंने पूरी तरह से जानते हुए पूछा कि ज्यादातर मामलों में रजनीश जैसे पतियों ने अपनी नवविवाहित पत्नियों को इस तरह से नहीं छेड़ा होता हैं।

"उन्नंग्घ्ह्ह ऊउउउआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआआ ऊईईईई माऽऽऽऽऽऽऽ" में कराहने लगी

“अपनी माँ को क्यों याद कर रही हो, मजा नहीं आ रहा क्या", स्वामी ने मेरे नितम्बों पर जोरदार थप्पड़ लगाते हुए कहा। स्वामीजी के मेरी चूचियों पर उनके थप्पड़ों से मेरी चूचियाँ गुलाबी और लाल हो गए थे।

"उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़ म्म्म्म्म नहीं बहुत मज़्ज़ाऽऽ आ रहा हैं स्वामीजी म्म्म ऐसे ही मेरी चूत की चुदाई करते रहिए।

फिर स्वामी जी ने अपना कठोर लंड को मेरी चूत से निकाल लिया और अपने लंड सिर को मेरी गांड में घुसाने लगे।

"आहहह्हाह्ह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़ म्म्म्म्म्म्म स्वामीइईजीईइईईई आह्ह्हह आपका मोटा लंड उफ़्फ़्फ़्फ धीरे से आऽऽह बहुत दुखता हैं अह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ़्फ़ स्वामिजीईई” मेरे आँखों से थोड़े आँसू आने लगे क्योंकि अब तक मेरी ज़िंदगी में स्वामीजी का सबसे बड़ा और सबसे मोटा लंड था जिसे मैंने अपनी गांड में ऐसे लिया था।


9-BC37-A03-3541-4-F94-A29-F-2-F75497-B5612


"बस तोड़ा दुखे गा, तेरी गांड बहुत तंग है ना मेरी इस मुसाल मोटे लंड के लिए, थोड़े देर बार तुम्हें बहुत मज्जा मिलेगा ", स्वामी जी ने ऐसे कहते हुए अब प्यार से मेरी गांड पर अपना हाथ फेरा।

मुझे लगा जैसे मेरे चूतड़ फट गए थे और में दर्द और खुशी से कराह निकालती रही।

ऐसी ५-८ मीन चुदाई के बाद अब मैं अब पूरी तरह से अपनी गांड को स्वामीजी के मोटे लंड की इस अनुभूति का आनंद लेने लगी और अब कम दर्द से और ज़्यादा खुशी से कराहने लगी।

स्वामी जि अपना लंड मेरी गांड में घुसाता रहे और मेरी गाँड की जमदार चुदाई करते रहे।

मैं चाहती थी कि उनका बड़ा मोटा लंड मेरी गांड को देर तक चोदता रहे और मैं इस कट्टर चुदाई का आनंद रात भर लेती रहु। स्वामीजी अब अपने ऑर्गैज़म के पास थे और मुझे उनका लंड मेरी गुदा की छेद में और फूलता हुआ महसूस करी। उनका लंड अब मेरी गाँड में फँसा धड़क रहा था ।




“आह्ह्हह कामिनी मेरी चुद्दकड दासी मेरा बीज तेरे गाँड की गहराई में डालने वाला हूँ ले लो उसे मेरी दासी बानो मम्मम” ऐसे कहते हुए उनका लंड धधकने लगा , उन्होंने मेरी कूल्हों को पकड़ कर अब ज़ोरों का धक्का देने लगे , “आह कामिनी मेरी फूहड़ उफ़्फ़्फ़्फ ले मेरा लंड तेरी इस चंचल तंग गाँड की छेद में आह्ह्हह”



554-C3059-F28-A-458-C-9349-E3-E854-D7-ACD3

में भी अब कराहने लगी, “आह्ह्हह हाँ स्वामीजी अब आप भी मेरी गाँड में अपने मोटे लंड में से आपका बीज से भर दीजिए अह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ क्या मस्त गाँड की चुदाई की हैं आपने मम्मम माँ करता हैं बार बार आपके पास आऊँ अपनी गाँड की जमकर चुदाई करने आह्ह्हह मेरी चंचल गाँड को और ज़ोर से चोदिए स्वामीजी उफ़्फ़्फ़्फ अह्ह्ह म्म्म्म्म”

मेरे बाल पूरे बिखरे हुए थे और में ज़ोरों से अब चिल्ला रही थी अह्ह्ह उफ़्फ़्फ़्फ म्म्म्म्म्म आवाज़ें करते हुए।

अब स्वामीजी ने मेरी कमर को कस कर पकड़ कर एक ज़ोर के झटके और कराह के साथ मेरी गाँड की छेद के गहराई तक उनके लंड का गधा माल छोर्ने लगे।

उफ़्फ़्फ़्फ इतना सारा माल उनके लंड se उगलते हुए में महसूस करी, गधा गरम माल । वह २ मीन तक अपना वीर्य मेरी गाँड में चोर्टे रहे, इतना सारा माल की वह मेरी गाँड से बाहर भी टपकने लगा था। उनका लंड अभी भी मेरी गाँड की छेद में ही था और उनका लंड अभी भी मेरी गाँड में धधक ते हुए हम आराम करने लगे।




अगले दिन भी ऐसी ही मेरी चूत और गाँड की दो बार स्वामीजी ने जमकर ठुकाई करी।


D882-D237-6-D87-46-A9-8-B88-B3-FEE0-DB2-D02

ezgif-com-gif-maker-24 IMG-7638 23209072
————————————————

अब वहाँ का तीसरा दिन था । सुबह में नहाने चली गयी और नहा कर बाहर आयी तो मुझे बग़ल वाले एक कमरे में स्वामीजी की आवाज़ें सुन पा रही थी, वह किसी से फ़ोन पर बातें कर रहे थे।

में दरवाज़े के पास गयी और उनकी बातें सुनने लगी।

स्वामीजी बोल रहे थे “ हाँ यार सच कह रहा हूँ तुझे , एक मछली जाल में फँसी हैं!”

“ओह ऐसी वैसी माल नहीं हैं वो, शादी शूडा हैं लेकिन अभी भी काफ़ी जवान हैं , बस २१ की हैं ।”

मस्त फूहड़ हैं साली , ऐसी तंग गाँड का छेद हैं की मानो हर रात उसकी गाँड ही मारू!”



मुझे उनसे ऐसी बातें सुन शर्मा रही थी, उफ़्फ़्फ और एक मर्द मेरे प्यार में दीवाना हो गया हैं। में सोचने लगी।

लेकिन जो मेंने आगे की बातें सुनी उससे मेरी मुस्कान चली गयी।

स्वामीजी फ़ोन पर बोले “बताया ना उसका पति उसे अच्छी तरह से नहीं चोदता, साली को मस्त फँसाया हैं मेंने , उसके पति को cuckold बनाने की बात की उससे, उसे उसके पति को cuckold बनाने के कुछ स्टेप्स बताए और यह भी बताया की में ट्रीटमेंट करूँगा उसकी, साली बवक़ूफ मेरी बात माँ भी ली। तुम्हें तो पता हैं ऐसे कोई ट्रीटमेंट नहीं होता, बस उसके पति कोककल्ड वह खुद बनाएगी और फिर उसे मस्ती से में चोदते रहूँगा , उसके पति के सामने भी । और एक बात साली को लगता हैं में उससे प्यार करता हैं ना की बस चुदाई चाहता हूँ उसकी चूत और गाँड की।”

और स्वामीजी ज़ोरों से हसने लगे। यह सुन मुझे बहुत बुरा लगा। में सोचने लगी - यहाँ में पागलों जैसे उनके बातों में आ रही थी और मेरे प्यारे पति को अनजाने में cuckold बनाती। अच्छा हैं यह सब अभी सुनने को मिला, चलो अब यहाँ से निकलते हैं।-




में कमरे में गयी और मेरे कपड़े पहन कर वहाँ से तुरंत निकल गयी। बाहर मुझे कोई टैक्सी नहीं मिल रही थी, आख़िरकार वहाँ एक रिक्शॉ मिली और उसमें बैठ गयी।

स्वामीजी की बातें मेरे दिमाग़ में चल रही थी और जब ऑटो चालक ने मुझे पूछा की मुझे कहाँ जाना हैं तो में उन्ही ख़यालों में खोई हुई थी।




में देखी की रिक्शॉ वाला मुझे आईने से देख रहा था क्योंकि में निर्णय लेने में अपना समय ले रही थी।



"मैडम तेरे को किसी फ़ाइव-स्टार होटेल में जाने का है क्या", रिक्शॉ वाले ने मुझे पूछा। रिक्शॉ वाला मुझे कोई उच्च श्रेणी की वेश्या समझकर पूछ रहा था। में उसका इशारा समझ गयी और ग़ुस्से से बोली की मुझे स्टेशन जाना हैं।



IMG-7293

फिर से में सोच में पद गयी , (क्या सब मर्द जिनसे में चुदी हूँ , वह बस मेरे बदन से ही हवस करते हैं, क्या उन्मे मेरे लिए थोड़ा भी प्यार नहीं होगा, इस स्वामीजी की तरह बस मेरे बदन का इस्तेमाल करते हैं। मेरे ससुर जी भी ज़रूर मुझसे प्यार करते होंगे ? अब उस पर भी में डाउट करने लगी।

और रही मेरे प्यारे पति की बात। हाँ उनकी चुदाई अच्छी नहीं हैं और थोड़ा उनका हवस भी मेरे प्रति कम दिखता हैं, लेकिन वह मुझसे बेतहाशा मोहब्बत करते थे और मेंने उन्हें सिवाय धोके के क्या दिया हैं ! उनसे शादी भी बस सेल्फ़िश कारणों के लिए मेंने की थी। उनके सामने ससुर जी से भी चुदी हूँ फिर भी वह कुछ बुरा मुझे बोलते नहीं । में आज से एक अच्छी पत्नी बन्ने की कोशिश करूँगी। बस पति से ही जब चाहे चुदूँगी, मेरे ससुर जी से भी नहीं चुदूँगी । और घर के बाहर के किसी मर्द से तो में कभी नहीं चुदाई करूँगी।)

यह बात सोचते में स्टेशन पहुँच गयी और फिर अपने घर।

—————————————————


क्या कामिनी सच में अब एक अच्छी ना धोका देने वाली पत्नी बन कर रहेगी और बस अपने पति रजनीश से ही योंन सम्बंध रखेगी ? क्या कामिनी इस खुद को की गयी प्रॉमिस पर टिकी रहेगी ??????

END OF PART 13
Gazab super duper awesome sexy hotest update
👌👌👌👌👌👌👌👌👌👌
✅✅✅✅✅✅✅✅✅
🔥🔥🔥🔥🔥🔥🔥🔥
 

HusnKiMallika

Active Member
1,555
2,677
144

HusnKiMallika

Active Member
1,555
2,677
144
आपका एक्स फोरम के परिवार में बहुत ही कामुक स्वागत है।💋💋💋
Aap toh bhul hi gaye ho mere kahaani par comments karna , bas swagat hi karte ho aap lagta hain 💋💋💋💋💋 Sanjay dham
 
Last edited:

HusnKiMallika

Active Member
1,555
2,677
144
Super hot story please update more Malika.. jii...love you...great skill of writing from male and female points🥰🥰🥰🥰
bahut saare updates de chuki hun lekin ab toh tum bhul hi gaye ho meri kahani par comments karna hornybeta91💋💋💋💋💋💋💋💋💋💋
 
Last edited:

Mass

Well-Known Member
8,724
17,814
189
Wonderful update Madam. Finally Kamini realized the trap set by Swamiji..nice twist though..
Btw, the 'facial expressions' photos in the story/updates are really awesome..(more than the other photos). 👍👍
HusnKiMallika
 
  • Love
Reactions: HusnKiMallika
Top