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Incest अम्मी vs मेरी फैंटेसी दुनिया

DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
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आभार पट्टिका

परम पिता परमेश्वर की असीम अनुकम्पा एवं मात-पिता , गुरूजनो के आशिर्वाद से इस कहानी ने पहले एक लाख व्यूज पार कर लिये है ।

इस मौके पर मेरे बिजिबल पाठको के साथ साथ उन गुप्त पाठकों को भी विशेष आभार जो चोरी छिपे बिना टिका टिप्पणी किये हिला कर सो जाते है ।

आपका अपना
DREAMBOY40
 
Last edited:

DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
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UPDATE 006


नाइटी

कमज़ोरी ही है मेरी , सैटिन की नाइटी ।
वो मखमली सा अहसास जिसपर हाथ फिराने से एक अलग ही तरह की ठंडी मुलायम तरंग दौड़ती है बदन में दिल की धड़कने बढ़ा जाती है मेरी ।
उस कपड़े में मानो एक अजीब सी मादक गंध सनी होती है , जिसकी खुशबू सासो में बसते ही पैंट में वाइब्रेशन होने लगता है ।

बाइक चलाते हुए पैंट में हाथ डाल कर मैने मोबाइल खोला , अलीना ने एक और sexy सेल्फी भेजी थी । उस तस्वीर के साथ मैसेज भी था ।

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" Lo beta dudh pi lo "


: ले बेटा दूध पी ले
मगर मेरी नजर अम्मी पर थी पहली बार आज वो बिना दुपट्टे के मेरे आगे थे वो भी नाइटी में , उनके बड़े बड़े मोटे दाने के निप्पल नाइटी फाड़ कर आने को बेताब थे । मेरा मुंह कुछ बोलने को खुला मगर मैं वैसे ही ठहर सा गया

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: ले पकड़ न ( मै नजरे हटा कर अम्मी के हाथ से दूध का ग्लास लिया और अम्मी ने लपक कर मेरे बिस्तर से मोबाइल उठा ली )
: अरे क्या हुआ मोबाइल क्यों ( मानो मेरी रूह उठा कर ले जा रही हो अम्मी ऐसा महसूस हुआ , ना जाने कैसा जुड़ाव हो गया था चंद दिनों में मोबाइल से )
: तेरे अब्बू ने खास बोला है कि रात में मोबाइल तेरे पास नहीं होगी ( अम्मी के दिखावटी गुस्से में भी मुझे एक छिपी हुई शरारत की झलक दिखी , मै समझ गया कि अम्मी अब्बू से बाते करेंगी )



फोन पर ..
: ऊहू इतना तड़प रहे थे क्या कि आधी काफी छोड़ कर चले आए मेरे लिए
: mommy ने दूध के लिए बुलाया था तो कैसे नहीं आता ( मैने अलीना को फुसलाया )
: उस ब्लू आइज वाली है कही तुम्हे हिप्नोटाइज तो नहीं न कर दिया ( उसने शक किया)
: तुम्हारे प्यार के जादू के आगे सब धुंधला हो जाता है मेरी जान ( उफ्फ क्या कसा हुआ जोबन है इसका , मोबाइल के आई तस्वीरों में उसके कड़क भूरे निप्पलों को निहारता हुआ मै सिहरा )
: और खबरदार जो उसके शर्ट से झांकते कबूतरों को दाना दिया तो , कामिनी जानबूझ कर चोंच उठाए घूमती है तुम्हारे आगे हूह ( वो पूरी पोजेसिव होकर मुझ पर भड़की )
: मै क्यू उन्हें दाना डालूंगा भला , मेरे पसंदीदा कबूतरों के जोड़े तो तुम्हारे पास है ओह्ह्ह्ह कितने कड़क और तने हुए है ओह्ह्ह्ह जी चाहता है कि
: क्यायाआ? बोलो न क्या मन कर रहा है ? ( अलीना की सांसे बेताब थी मेरे मुंह से लब्ज़ सुनने को , उसके बदन में उठती मदहोशी और वासना की खुमारी में मोबाइल पर महसूस कर सकता था , गर्म सासो की आहट और उसमें छिपी हुई मादक कसमसाहट , मानों वो फोन को मुंह के पास रखे हुए अपने दोनों दूधिया रस भरे चूचियों को मसल रही हो ।
: सच में बोलूं क्या ? ( मैने उसे तड़पाया )
: उम्मम्म बोलो न ( वो पूरे जोश में सिसकती हुई कुनमुनाई)
: पहले ये बताओ इसके साथ जो दिलाया था वो क्यों नहीं पहना ?



: आपने ही बोला था कि इसके साथ दूसरे कपडे पहनने की जरूरत नहीं होती
: तो क्या नीचे भी नही पहनी हो (फोन स्पीकर पर था और अब्बू की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनमना गया )
फरीदा शर्मा कर : धत्त चुप करिए आप , नटखट कही के । सारी शरारत जानती हु मै आपकी
अब्बू : अब मत तरसाओ न , वीडियो कॉल करू
अम्मी : उन्हू वो इसमें कान में लगाने वाला म्यूजिक वाला नही है , आवाज ऊपर तक जाएगी
अम्मी की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनामना गया कि आज रात तो पूरा फुल प्रोग्राम सेट कर रखा है अम्मी और अब्बू ने वीडियो कॉल पर
अब्बू : अच्छा ठीक है इस बार आऊंगा तो वो इयरफोन लेके आऊंगा , फिर तो अपने गदराए जिस्म का दीदार कराओगी न बेगम
अम्मी इतरा कर: उहू बिलकुल भी नही ,
अब्बू : क्या ? पर क्यू ?
अम्मी : नही आप बहुत वो हो , और मुझे शर्म भी आयेगी
अब्बू और अम्मी की बातें सुनकर मेरा लंड और मैं दोनो खुश हुए जा रहे थे


: ऊहू देखो तो मेरी शेरनी को , अब मुझसे ही शर्मा रही है उम्म्म ( मैने उसे चिढ़ाया )
: नहीईई तुम ऐसे मुझे तंग नहीं कर सकते , तुम तुम पहले जैसे रहो न ( अलीना ऐसे उखड़कर बोली जैसे उसने कुछ खो सा दिया मुझमें , मुझे पाने के बाद )
: अच्छा जी कैसे होना चाहिए मुझे फिर ( मै हंसता हुआ उससे सवाल दोहराया )
: जैसे पहले तुम मुझे देख कर डर जाते थे , मेरे करीब आने पर कांपने लग जाते थे । मै छूती थी तुम्हे तो घबरा जाते थे वैसे ही एकदम मासूम और प्यारे से । मुझे तुम्हे छेड़ना परेशान करना पसंद है समझे बुद्धु हूह ( वो अपनी बीती मीठी यादों को जबान से दुहराती हुई तुनकी)
: याद है दुकान के उसे चेंजिंग रूम में जब तुमने मुझे अपनी ओर खींचा था एकदम से मुझे अपने करीब कर लिया था , तुम्हारे वो बड़े बड़े मोटे नुकीले तीर मेरे सीने को चिर रहे थे
: हम्म्म ( अलीना की सांसे फिर से गरमाने लगी )
: तुमने ही कहा था कि मुझसे डरो मत और फिर जब तुम मेरे रूम पर आई थी जहां मैं लेता हु वहां तुम मेरे बाहों में थी चिपकी हुई बिना कपड़ो के , तुम्हारी मखमली जांघें मेरे जांघों के बीच गर्म हो रही थी और तुम मेरे सीने से लिपटी हुई मुझे कसके पकड़े हुए थी , याद है वो पल
: सीईईईई उम्मम्म वो सब मै कैसे भूल सकती हु मेरे राआजाह ( अलीना कसमसाती हुई बोली )
: मै भी नहीं भूल सकता हूं , तुमने मुझे मेरे खामियों और मेरी जिद के साथ मुझे अपनाया था । फिर तुमसे कैसे डरना , डरता था कही तुम मुझसे नफरत न कर बैठो मेरे अतीत मेरे फैंटेसी को जानने के बाद , बस इसीलिए कतराता था ।
: धत्त बुद्धू , तुम इतने प्यारे हो तुमसे नफरत कैसी और mommy अपने बेटू से कभी नाराज नहीं होती समझे हिहीही ( वो प्यार से मुझे समझाते हुए एकदम से चुलबुली सी हो गई )

: mommy
: यस्स माय बेबी ( अलीना ने बड़े लुभावने स्वर में जवाब दिया )
: I wanna see you your booby mommy ... वीडियो कॉल करो ( मै पूरे कामोत्तेजना में डूबता हुआ अपने पैर आपस में रगड़ता हुआ बोला )




: धत्त नहीइइ मै वीडियो बना कर भेज दूंगी आपको , ऐसे मुझे शर्म आएगी ( अम्मी लगभग शरमाते हुए लहजे में बोली )
: तो कुछ तस्वीरें भी भेजना मेरी जान अपने बड़े फैले हुए चूतड़ों के । उन्हें याद करता हूं तो लंड मचल उठता है मेरा ( स्पीकर पर अब्बू की बातें सुन कर मेरे आंखो में अम्मी के बड़े फैले हुए चौड़े चूतड बस से गए और लंड लोवर में अकड़ सा गया ।
: धत्त गंदे , आपको तो बस बड़ी बड़ी हिलती डुलती चीजे ही भाती है , चाहे वो मेरी हो या फिर उस हुह्ह्ह ( अम्मी ने बीच में बात को रोक दिया और मैं उलझ गया कि अब दूसरी कौन है जिसकी बड़ी हिलकोरे खाती गाड़ के अब्बू दीवाने है )
: हा मेरी जान लेकिन तुम्हारी मोटे मोटे चूतड़ों की कसी दरारों को फैलाकर कर पेलने में जो मजा आता है अह्ह्ह्ह सीईईईईई मेरी जान देखो न मेरा लंड तुम्हारे बड़े बड़े मटके जैसे चूतड़ों को याद कर लार छोड़ रहा है आओ न चाट लो सीईईईई ओह्ह्ह्ह
: अब बस भी करिए शानू के अब्बू मुझसे रहा नही जायेगा । आप दूर से मुझे तंग कर खुद को शांत कर लेते है और मुझे आपकी यादों में तड़पना पड़ता है सीईईईई अह्ह्ह्ह ( अम्मी सिसकिया लेने लगी )
: मेरी यादों में तड़पती हो या मेरे इस फौलादी लंड के जो तुम्हारी लंबी बुर के फांके चीरता हुआ तुम्हे सुकून देता है ( अब्बू की बातों से मेरी हालत खस्ता हुई जा रही थी और अम्मी की सिसकिया और कमरे से आती मादक कुनमुनाहट से साफ पता चल रहा था कि अम्मी बिस्तर पर मचल रही है । )
: ओह्ह्ह मेरे सरताज अह्ह्ह्ह्ह मेरे साजन ओह्ह्ह उसे याद करती हू तो मेरी सलवार गीली हो जाती है सीईईईई आजाओ न जल्दी से , कब तक मुझे ऐसे तड़पाओगे मेरे राजा ओह्ह्ह्ह
: तुम कहो तो कल ही आ ज़ाऊ तुम्हारे पास



: ओह्ह्ह यस्स बेटू कम टू योर हॉर्नी मम्मा उम्मम
: उम्मम माय सेक्सी mommy कल आऊंगा तो दूधू पिलाओगी न

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: हा बेटू क्यू नहीं , mommy का दूधू बेटू के लिए ही है मेरा बच्चा अह्ह्ह्ह अब चूस लो न इसे ओह्ह्ह्ह यस्स ऐसे ही पी लो मेरा बच्चा ( अलीना ने वीडियो कॉल पर अपने गोरे गोरे चूचे दिखाते हुए उन्हें मस्ती में मसलने लगी और मैं भी अपना लंड बाहर निकाल कर उन्हें देख कर हिलाने लगा )
: ओह्ह्ह mommy आपके बूब्स बहुत जूसी है उम्म्म सो टेस्टी उम्मम्म सीईईईई आई लव टू सक योर बूबी उम्मम्म आह्ह्ह ( मै अपनी मोबाइल स्क्रीन पर दिखते अलीना के निप्पल को जीभ से चाटने लगा और अलीना पागल होकर अपने पैर पटकने लगी )
: ओह्ह्ह यस्स बेबी सक इट उम्मम सक इट ओह्ह्ह्ह गॉड माय सेक्सी बेटू सक योर मम्मा बूबी ओह्ह्ह्ह यस्स अह्ह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह शानू मेरा आयेगा ओह्ह्ह्ह डाल दो न अंदर
: कहा डाल दु मेरी जान



: अपनी फरीदा की बुर में मेरे राजा , फाड़ो न मेरी चूत को अओहह्ह घुसा दो अपना मोटा बड़ा लंड ओह्ह्ह्ह मेरे राजा ( अम्मी सिसकियां लेती हुई तड़पती हुई बोली )
: लो मेरी जान अह्ह्ह्ह घुसा दिया ओह्ह्ह कितनी गरम और मुलायम चूत है तेरी अह्ह्ह्ह्ह कितना तप रहा है ( अब्बू की बातें सुनकर मैं भी अपना लंड मुठियाता हुआ अम्मी की चूत की गर्मी को महसूस करने लगा )
: है न मेरे राजा , आना इस बार पूरा लंड पिघला लूंगी अपनी बुर ओह्ह्ह्ह शानू के अब्बू अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा अह्ह्ह्ह्ह चोदो मुझे अह्ह्ह्ह्ह कस कस के चाहिए मुझे अह्ह्ह्ह
: हा मेरी जान लेहह्हा अह्ह्ह्ह हचक हचक कर तेरे ऊपर चढ़ कर पेल रहा हु तेरी बुर में ओह्ह्ह्ह कितनी रसीली है इसे और भी रसीली कर दु क्या मेरी जान
: हा मेरे राजा कर दो न , भर दो मेरी चूत को अपने गर्म रस से अह्ह्ह्ह जब आपके रस से मेरी रस मिलती है तो उसे अपने बुर पर मलने में मुझे मजा आता है आह्ह्ह्ह मेरे राजा झड़ने वाली हु मै अह्ह्ह्ह्ह आओ न झड़ जाओ न
: अह्ह्ह्ह्ह सच में मेरी जान और जब मैं तेरी गाड़ में अपनी पिचकारी छोड़ता हु तब , तब अच्छा नहीं लगता ( अब्बू की बातें सुनकर मैं चरम पर पहुंच चुका था कि अब्बू अम्मी के गाड़ में झड़ते है । )
: आह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा मै आ रही हू ओह्ह्ह्ह निकल रहा है अह्ह्ह्ह ( अम्मी तेज सिसकिया लेते हुए पैर पटकने लगी जिसकी आहट मुझे साफ साफ दरवाजे के पास खड़े होकर सुनाई दे रही थी )
और मेरी भी वही खड़े खड़े पिचकारी छूटने लगी ।


मन की हवस शांत हो गई थी मगर
आने वाली सुबह को लेकर मै बेचैन था । अलीना के चंद सवाल मुझ पर भारी हो रहे थे जो उसने सोने से पहले मेरे जहन में छोड़े हुए थे ।
क्या ही जवाब दूंगा मैं उसको ?
क्या बताऊंगा मै उसको ?
कैसे समझाऊंगा उसको अपने और सिराज की अम्मी के रिश्ते के बारे में ?

सिराज की अम्मी जो रूप उस रात मैने देखा था मैने कभी नहीं सोचा था इतनी मजहबी और खुद को पर्दे में रखने वाली खातून के जज्बात इस तरह से निराले होंगे ।

इधर सिराज नशे में चूर था और मैं बड़ी मुश्किल से उसको संभाल पा रहा था।
कम से कम 5 से 6 बार मुझे आवाज देनी पड़ी तब उसकी अम्मी ने दरवाजा खोला और करीब 48 साल की महिला , जिसके भारी भरकम देह पर बड़ी सी चादर डली हुई थी , सिराज की अम्मी ने पूरी कोशिश की थी सामने वाले को भनक न लगे कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है , मगर जल्द ही वो भी समझ गई कि मेरी नजरो ने उनके ऊपरी हिस्से का सिटी स्कैन कर ही लिया है ।
असहज होकर वो इधर उधर देखने लगी : अरे शानू बेटा इतनी रात गए , 1 बजने को हो रहे थे और तुम सब तो कल आने वाले थे न ।
: हा अम्मी लेकिन इसने कुछ ज्यादा ही पी ली और घर जाना घर जाना की जिद पकड़ ली ( सिराज को बाहों में संभालते हुए मैने कहा )
: अह्ह्ह्ह्ह अम्मी हेल्प करिए न , नहीं तो गिर जायेगा ये ( अब मै और उसको सहारा नहीं दे पा रहा था , पूरा बदन दुख रहा था )
सिराज की अम्मी ने उसको थामा और गैलरी में ले गई, मै दरवाजा लगा कर उनके साथ हो लिया
दोनो साइड से हमने सिराज को पकड़ कर आगे बढ़ रहे थे ।
: यहां नही बेटा , कमरे में ले चल वहां अच्छे से सो पाएगा ये
: फिर इस वाले कमरे में ही चलो , वहा दूर तक ले जाना नहीं होगा मुझसे अम्मी ( ना चाहते हुए सिराज की अम्मी को मेरे थके हुए चेहरे को देखकर कर मेरी बात माननी पड़ी और हम दोनो सिराज की अम्मी के कमरे में घुस गए । )

बिस्तर तक आते आते मै एकदम से ठिठक कर खड़ा हो गया और मेरी नजर बिस्तर पर रखे हुए सिराज की अम्मी के कपड़ो थी । ये वही कपड़े थे जो आज शाम को उसकी अम्मी ने पहने थे , मगर उसके साथ साथ उनकी ब्रा और उलझी हुई पैंटी भी थी ।

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सिराज की अम्मी भी अबतक समझ चुकी थी कि मैं पूरी तरह से जान चुका था कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है और वो इससे असहज होने लगी थी ।
: यही सुला देते है बेटा इसे ( उन्होंने उसका हाथ अपने कंधे से हटाते हुए कहा और उसको घुमाने की कोशिश करने लगी । मैने भी ऐसा ही कुछ प्रयास किया ताकि सिराज को पीठ के बल लिटाया जा सके )

मगर मेरे हाथ बहुत बुरी तरह दुख रहे थे और जैसे तैसे वो अपनी अम्मी के कपड़ो पर ही पसर गया , सिराज के अम्मी की पैंटी उसके मुंह के पास ही थी । जिसे हम दोनो देख पा रहे थे और जैसे ही मैने उसकी अम्मी की ओर देखा उनका चादर कंधे से सरका हुआ था जिसे उन्होंने लपेट रखा था और आगे से उनकी पेट और मोटी मोटी छातियों की झलक मिल रही थी ।
जिसे देखते ही मेरा लंड एकदम से फ़नफ़नाने लगा और उन्हें जैसे ही इसका अहसास हुआ वो चादर फिर से कंधे पर फेंकते हुए आगे से खुद को ढक ली ।

: जा बेटा सिराज के कमरे में तू भी आराम कर ले
: और आप ?
: मै भी देख रही हु , अभी कही तो सोना ही पड़ेगा न !! यहां तो इसकी बदबू से मेरा सर घूमने लगा है । सोच रही हु ऊपर कमरे में साफ करके बिस्तर लगा लू
: इतनी रात में आप कहा परेशान होंगी , आप सिराज के कमरे में सो जाइए मै बाहर सोफे पर सो जाऊंगा
: नहीं नहीं वहा मच्छर बहुत है बेटा तू नहीं सो पाएगा , ऐसा कर तू भी मेरे साथ सो जाना।
: जी ठीक है ( मै ये बोल कर कुछ पल चुप रहा )
: तू चल बेटा मैं आती हूँ जरा ( वो नजरे चुराते हुए बोली और मै समझ गया कि वो कपड़े पहने वाली थी )

मै कमरे से बाहर निकल आया मगर दिल को चैन कहा ।
कमरे से निकल कर मै सिराज के कमरे की चल तो दिया मगर चार कदम चल कर धीरे से वापस
वही दरवाजे के पास से झांका तो पूरे बदन में सुरसुरि सी चढ़ने लगी थी।
पेंट में लंड एकदम फड़फड़ाने लगा था उसको भींचते हुए मैने सिसक कर सामने देखा तो सिराज की अम्मी अपने जिस्म से वो चादर उतार चुकी थीं और आलमारी से कपड़े निकाल रही थी ।

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उनकी बड़ी सी गाड़ पूरी दरारों सहित नहीं मेरे आंखो के आगे कमरे की उजली रोशनी में चमक रही थी ।
आगे लटके हुए उनके मोटे भारी भरकम चूचे देख कर मेरे मुंह में लार घुलने लगी थी ।

तभी उन्हें कुछ अहसास हुआ और इससे पहले वो मेरी ओर देखती मै पीछे हो गया , मगर मेरी होशियारी शायद पकड़ी ही गई थी क्योंकि ठीक मेरे पीछे एक एल.ई.डी. बल्ब जल रही थी हाल के जिससे मेरी परछाई कमरे के दरवाजे के पास फर्श पर उभरी हुई थी ।
मै झेप भरी शर्मिंदी के साथ वापस सिराज के कमरे की ओर बढ़ गया कि जरूर उसकी अम्मी ने मेरी परछाई देखी होगी और वो न जाने क्या सोचेगी ।
" क्या वो कमरे में सोने आएंगी भी "
एक डर सा लग रहा था कि न जाने आगे क्या होने वाला , कही उसकी अम्मी ने मुझे घर आने से मना कर दिया तो फिर सिराज को क्या कहूंगा , उससे मेरी दोस्ती खत्म ? न जाने क्या क्या सवाल उभर रहे थे मेरे मन में और तभी कमरे में आहट हुई और मेरी नजर सामने गई ।

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ब्लैक साटिन नाइटी में अपनी मोटी मोटी खरबूजे जैसे चूचीयो को समाए हुए सिराज की अम्मी मेरे सामने थी ।


जारी रहेगी
 

Gary1511

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UPDATE 005
MOMMY


अगली सुबह मैं ऑफिस के लिए निकल गया था और अजीब बोरियत सी लग रही थी ।
तभी अलीना का फोन आया

: कुछ भेजा है मैने देखो ( पूरे हक से वो बोली )
मैंने मोबाइल खोला और व्हाट्सएप चेक किया तो तस्वीरें शेयर की हुई थी
जैसे ही मैने उनको ओपन किया मेरे होठ मुस्कुरा उठे ।
अभी अभी वो उठ कर बाथरूम में ब्रश करने गई थी ।

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: अच्छी है ना , देख कर डिलीट कर देना ( वो चहक कर बोली)
: नही मै तो फ्रेम करवाने वाला हु इसको ( मैने उसको चिढ़ाना चाहा , मगर मेरी निगाहें उसकी नाइट सूट से झांकती गोरी गोरी मौसमियो पर थी )
: हिम्मत है तो मेरी डीपी लगा के दिखाओ व्हाट्सएप पर तो जानू
: अच्छा जी डेयर दे रही हो
: हा दिया , लगा कर दिखाओ पूरे 24 घंटे के लिए
: नही वो अब्बू !!
: क्यू फट गई ना फट्टू कही के ( उसने मुझे चिढ़ाया )
: हा जैसे तुम लगा लोगी मेरा ( मैने उसको जवाब देना चाहा )
: मैने पहले ही लगा रखी है हूंह ( वो तुनकी और फ़ोन काट दिया

मै हंसते हुए उसकी व्हाट्सएप डीपी पर अपनी तस्वीर देखने लगा जो उसने कल ही खींची थी ।
तभी उसका एक और मैसेज आया
"dekh kar delete kar dena 😘😘"

: देख कर डिलीट कर देना
: क्या ? लेकिन क्यू
: तेरे अब्बू ने मोबाइल चेक किया ना तो तेरी शामत आयेगी ( अम्मी ने मुझे अब्बू का खौफ दिखाया , जैसे मैं डर ही जाऊंगा । लेकिन उन्हें क्या पता अब तो मेरी सारी मनमानायिया ही उनके भरोसे थी कि कुछ भी हो अम्मी अब्बू को माना लेंगी । )
: आप हो न मनाने के लिए उनको ( मै मुस्कुराया )
वो भीतर से गुस्से से उबली मगर फिर शांत होकर झेप भरी हंसी से खिल उठी कुछ सोचते हुए
: तू बहुत बदमाश हो गया है , क्यू देखता है ये सब फिल्में । भोजपुरी हीरो बनेगा क्या ? ( अम्मी बात बदलते हुए बोली )
: मै तो पहले से ही आपका हीरो हूं ना ( मै खिलखिलाते हुए उनसे लिपटने को हुआ तो वो मुझसे दूर होकर बिस्तर पर ही सोए सोए खिसक गई )
: नही नही मेरे ऊपर मथना नही है , तू जल्दी से खतम कर अपनी फिल्म (अम्मी मुझसे दूर होते हुए साइड बदल कर करवट लेली और उनकी बड़ी सी गाड़ फेल कर मेरे सामने थी )
मेरे पैर मजह कुछ दूरी पर थे अम्मी के गुदाज नरम भारी भरकम चुतडो से , और पैर फैला कर मैंने उन्हें अम्मी के कूल्हों पर टिका दिए जैसे सोफे पर रखते हो

: शानू फिर तू शुरू हो गया ( अम्मी ने खीझ कर बोला )
: अम्मी रखने दो ना ,ऐसे अच्छा लगता है कितना नरम है हिहि ( मैने भी उनके कूल्हों पर हक जताते हुए अच्छे से पैर रख दिया )
: हम्मम तो अब तुझे मेरे कूल्हे नरम लग रहे है बदमाश कही का ( अम्मी फिर सोने की कोशिश करने लगी )
नया नही था मेरे लिए या अम्मी के लिए जब मैं उनके कूल्हों पर पैर रखकर सोया हूं
मगर कल रात को जो कुछ भी मैने देखा मेरे दिल में लालच ने जगह बना ली और जो कुछ भी इरादे मेरे जहन में थे उन्हें सोच कर ही मेरा लंड पूरा तनमनाया हुआ था ।

मूवी तो महज एक जरिया था मेरे जिस्म में एक सिहरन सी उठ रही जब मेरी नंगी एड़ियों के तालु अम्मी की बड़ी बड़ी 48 साइज की चौड़े विशाल चूतड़ों के इर्द गिर्द रेंग रही थी
पूरे जिस्म में एक मदहोश करने वाली मीठी गुदगुदाहट सी उठने लगी थी मानो ,

पैर की उंगलियों से धीरे धीरे करके करीब 10-15 मिंट में कही मै उनके नायाब बड़े भारी भरकम चूतड से उनकी सूट को सरका पाया था । सूती सलवार में से उनकी पैंटी साफ़ साफ़ झलक रही थी जो उनकी चूतड पर में चुस्त कसी नजर आ रही थी ।

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लंड मेरा पूरा फौलादी हुआ पड़ा था और जैसे ही मेरी पैर की उंगलियों ने अम्मी के नरम मुलायम चूतड को सलवार के ऊपर से छुआ एक बिजली सी दौड़ गई मेरे जिस्म में ।
रोम रोम तनमाना गया ,सांसे उफनाने लगी और डर से कलेजा धक धक होने लगा कि अम्मी गुस्से से पलट कर जवाब न दे दे ।
कुछ देर क्या पूरे 10-12 मिंट मैने पैर जड़ किए रखे , सूत भर हरकत नही की मैने और फिर धीरे धीरे पूरी ऐड़ी को अम्मी के गुदाज मुलायम चूतड पर हल्का सा सहलाते हुए गोल में घुमाया ।
अजीब सी चुनचुनाहट भरी तरंगे मेरे पैरो से होकर पूरे जिस्म ने फेल गई और लंड पूरी बगावत पर आ पहुंचा ।
मूवी फुल वैलुम पर चल रही थी , फिल्म की पड़ी ही किसे थी मेरा सारा फोकस अम्मी के फैले हुए गुदाज गुलगुले गाड़ पर था , जिसमे मेरी एडिया धंसी जा रही थी ।
धीरे धीरे मेरी पैर की उंगलियां रेंगती रही और हिम्मत कर मैने अम्मी के बड़े बड़े मटके जैसे चूतड़ों को ढलानों पर पैर को ले जाने लगभग दोनो जांघो की सिरो से उनके चूतड जुड़े होते है ।
मेरे पैर के तलवे में वहा की गर्मी महसूस होने लगी थी ।
उस तपीस से मेरा गला सूखने लगा था मेरी नज़रे कभी अम्मी के सर की ओर होता तो कभी मेरे पैरो पर जहा से महज कुछ इंच ही दूर था मैं उनकी चूत की निचली छोरो को छूने से ।



: शानू वहा नही
( मैंने चौक कर उसकी ओर देखा , वो मेरे ऑफिस की एक सीनियर थी )
: फिर कहा मैम ?
: ये यहां पर ( उसने फाइल के कागजात पर मेरे करीब खड़े होकर उंगली रखी , उसके जिस्म से आती परफ्यूम की खुशबू से मुझे बेचैनी होने लगी थी । खुद की संभालते हुए मैने सिग्नेचर बनाया )

: कहा खोए रहते हो आजकल ( अपने लटो को बहुत ही कैजूअली उसने अपने कानों के पीछे कर मुस्कुराते हुए वो बोली)
: वो मै ... ( मै अटक ही गया वही चेयर पर बैठे हुए ही उसकी नीली आंखों में )
: हा बोलो ना ( उसने मुझे अपनी ओर ऐसे देखता पाकर वो लाज से अपनी पलकें झुका ली और मुस्कुराहट से उसके गाल गुलाबी हो उठे )
: वो बस घर की याद आ रही थी ( मै इधर उधर देखने लगा )
: अच्छा , बस घर की ही या घर वाली की हिहिहि ( उसने छेड़ा मुझे )
: हा घरवाली की भी ( मै अम्मी को सोच कर उसकी बातों पर मुस्कुरा )
: तो क्या रिश्ता तय हो गया ( बड़े ही उदास दिल से उसने कहा और कुछ दूरी सी बनाई उसने )
: क्या ? नहीईईई , किसने कहा ? हा रिश्ता आया था मगर मुझे करनी नही थी ( मै हसता हुआ बोला )

एकदम उसके चेहरे की बुझती लाली फिर से खिल उठी । उसके दिल के भाव से मैं क्या पूरा ऑफिस परिचित था । कि रेशमा मैम अगर किसी पर लट्टू है तो शानू ही है । वरना भला कोई सीनियर रैंक की अधिकारी अपने क्लास 3 ग्रेड के मामूली स्टाफ से सिर्फ एक सिग्नेचर के लिए उसके टेबल पर क्यू आती ।

: वैसे आज शाम का क्या प्लान है ? ( रेशमा मैम ने फाइल हाथ में लेते हुए बोली )
: जी वो कुछ भी नही , मतलब कुछ सोचा नही है अभी ( उनके सवाल से मैं लगभग उलझ ही गया था )
: क्या तुम आज मुझे मेरे घर ड्रॉप कर दोगे , वो मेरी कार आज सर्विस के लिए गई है ।
: जी , क्यू नही जरूर ( मै चाह कर भी मना नही कर पाया उन्हे )
फिर वो मुस्कुराती हुई निकल गई ऑफिस से और मैने गहरी सांस लेते हुए अपनी क्रॉस की हुई टांगे खोल दी ।
: ओह बहिनचोद इसके करीब आते ही क्या हो जाता है , क्या नशीली परफ्यूम लेकर घुमती है साला दिमाग काम करना बंद हो जाता है । अभी बोल दिया है तो जाना ही पड़ेगा । ( मै मन ही मन बड़बड़ाया )

: हम्मम ये लो , सारे पेंडिंग कमप्लेन की फाइल ( एक लड़की ने जोर से गुस्से में 4 - 5 फाइलों को मेरे आगे डेस्क पर पटका )
: अरे क्या हुआ सबनम , मैम ने कुछ कहा क्या ( मै उसके परेशान चेहरे की ओर देख कर बोला )
बदले में वो मुझे घूरते हुए बोली : मुझे क्यू बोलेंगी मैम कुछ , उन्हे तो सिर्फ तुमसे ही बात करना पसंद है ना
: ये फाइल्स नोट डाउन हो जाए तो मुझे मैसेज कर देना ( सबनम तुनकती हुई निकल गई अपने डेस्क के लिए)
: अब इसको क्या हुआ , मै हूं क्या भाई सब मुझपर ऐसे हक जताते है जैसे मैं उनका पति हूं ( खुद से बड़बड़ाया )

खैर मैंने सारी फाइल्स नोट डाउन की और उसे मैसेज कर दिया


: sorry
: Mai kya karungi tumhari sorry ka
: Ab kya office me bhi tum aise hak jataogi
: Tum har jagah sirf aur sirf mere ho samjhe mister ( अलीना ने जवाब दिया )
: ok ok , man jaane ka kya logi ?
: Puri raat mere se baat wo bhi video calling 😍
: Bade saste me man gayi yar
: achcha bachchu call karna fir pata lagega , ok bye 😘

मैं मुस्कुरा रहा था और मोबाइल देख रहा था
: चले शानू ( रेशमा मैम मेरे डेस्क के पास आकर बोली )
: अह हा चलिए ( मै मोबाइल जेब में रखता हुआ )


: तुम यहां अकेले रहते हो , अम्मी को बुला क्यू नही लेते अपने , डैड भी तुम्हारे जॉब करते है जब ( बाइक पर बैठी हुई रेशमा मैम मेरे कान के पास आकर बोली )
: वो अब्बू हर वीकेंड घर आ जाते है तो अम्मी कैसे आयेंगी ( मै उदास होकर बोला )
: अरे तो क्या उन्हे अपने बेटे की जरा भी फिकर नही है ( रेशमा थोड़े जज़्बाती होकर तेज आवाज में बोली )
: नही मैम ऐसा नहीं है ( मै दिल में अम्मी को याद करते हुए लगभग रोने ही वाला था )
: आज भी कॉल नही आया ना घर से ( वो मेरे कंधे पर हाथ रखते हुए बोली )
: जी , आपको कैसे ? ( मेरी आंखे छलक ही पड़ी)
: सिराज ने बताया ( वो बोली और चुपचाप बाइक चलाता रहा , कुछ ही देर में उनका फ्लैट आ गया )
: आपका घर आ गया मैम ( मैने बाइक रोकी और शर्ट की बाजू से अपना चेहरा साफ किया )
: आओ ना ( वो बाइक से उतरते हुए बोली )
: जी फिर कभी , मुझे घर जाना है ( मै खुद से ही मानो जबरदस्ती करता हुआ बोला )
: ओहो शरमाओ मत और आओ चलो ( वो मेरे बाजू में बाजू डाल कर मुझे बाइक से खींच कर उतारती हुई बोली )
: अरे लेकिन , वो ... ( मै असहज से हस्ते चेहरे के साथ उनके साथ चल पड़ा )
: मैम छोड़िए , कोई देख लेगा ( मै अपने आप को छुड़ाता हुआ बोला )
: हा तो देखने दो , मै नहीं छोड़ने वाली कही तुम भाग गए तो ( वो चहक कर पूरा हक जताते हुए बोली )
: आपको कोई चाह कर भी नही छोड़ना चाहेगा मैम ( मै उनके अदाओं से हारता हुआ खुद से ही बड़ाबड़ाते हुए उनके साथ खींचता चला गया )
: अच्छा अब हम लिफ्ट में है अब तो छोड़िए
: ठीक है , लेकिन भागना मत ( वो मुझे उंगली दिखाती हुई वॉर्न करती हुई हस पड़ी और मैं उसके खिलखिलाते चेहरे को देख कर ठहर सा गया )
मुझे अवाक देख कर वो फिर से शरमाई और अपने लटों को फिर से कानो में उलझाती हुई अपनी पलके नीची कर ली : तुम मुझे ऐसे मत देखो प्लीज

: जी , सो सॉरी वो मै ... ( मै फिर से इधर उधर देखने लगा )
: धत्त बुद्धू इसमे सॉरी वाली बात नही है ( वो आंखे नचा कर मुस्कुराई )
: फिर क्या बात है ( मेरी सांसे धक धक हो रही थी उसके शर्ट के ऊपरी खुले बटन से झांकती उसकी 36 साइज की गोरी गोरी पहाड़ियों की घाटी देख कर )
: वो... कुछ नही , आओ चले फ्लोर आ गया मेरा ( वो लिफ्ट से मेरे आगे निकली और जींस में उसके चूतड भरपूर उभरे हुए थे , गजब की मादक चाल थी । लंड पूरा हरकत में आ चुका था । )
लॉक खोल कर हम हाल में गए , सपने जैसा था मेरे जैसे मिडिल क्लास वाले लड़के के लिए ऐसा अलिसान फ्लैट जो मजह 32000 रुपए माह की तनखाह पर जीवन गुजार रहा हो ।
फिल्मों में ही देखा था ऐसा फ्लैट , चमचमाती फर्श , गलीचा और मुलायम सोफा उसके आगे ग्लास वाली मेज, सोफे के बगल में इंडोर प्लांट और सबसे बढ़ कर मन को भीतर से खुश कर दे ऐसे जादू भरी रूम स्प्रे की महक ।

कंधे से साइड बैग उतार कर उसने सोफे पर रखते हुए : मै चेंज करके आती हूं तुम बैठो

फिर वो किसकी हिरणी की तरह बड़ी अदा से अपने कूल्हे हिलाते हुए कमरे में चली गई ।
मैंने एक गहरी सास ली और हाल के टहल कर घर देखने लगा , ऐसे ही आलीशान घर का सपना देखते बड़ा हुआ था ।



: नही नही अम्मी ये देखो , ऐसे वाला स्विमिंग पूल होगा हमारे बंगले में ( मोबाइल में वीडियो चला कर अम्मी को एक बंगले और स्विमिंग पूल दिखाता हुआ बोला )
: अच्छा और इसमें नहाएगा कौन ( अम्मी अपनी हसी दबाती हुई बोली )
: आप , मै ,अब्बू
: धत्त बदमाश कही का , अपनी अम्मी को खुले में नहलाएगा वो भी ऐसे कपड़ो में ( अम्मी का इशारा स्विमिंग पूल में नहाती उस महिला की ओर था जिसने बिकनी पहन रखी थी और उसके मोटे मोटे दूध और गाड़ भरपूर खिल कर उभरे हुए थे )
: अरे नही ये बंगले में सब प्राइवेट होता है , वहा बाहर का कोई नही आता जाता ( मै अम्मी को समझाना चाहा मन में ये लालच लिए कि काश इस चीज के अम्मी हा कर दें तो उन्हें बिकनी में देख तो पाऊंगा )
: बंद कर इसे अब तेरे अब्बू को पता चला ना , इस घर में भी नहाने को नही मिलेगा तुझे ( अम्मी ने मेरे मजे लिए )



: अच्छी दिख रही है ना
: अह, हा बहुत खूबसूरत ...... ( मै दीवाल पर लगी एक पेंटिंग से नजर हटा कर रेशमा मैम की ओर देखा जो अभी अभी शोवर लेकर निकली थी और मैरून नाइटी में उनका जिस्म मुझे पागल किए जा रहा था ।
उनका एक पैर सोफे पर था और वो आगे झुक कर पैरो में पता नही किसी तरह का लोशन लगा रही थी

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ऊपर उनकी मोटी मोटी चूचियां की घाटी ऐसे लटकी हुई थी मानो अब तब बाहर निकल ही जाए ।

मै नजरे चुराता हुआ गले से थूक गटकने लगा और वो मुस्कुराती हुई किचन की ओर जाने लगी : क्या पियोगे , चाय कॉफी या ड्रिंक ?

: जी , कॉफी चलेगी ( मै मेरे सूखते होठों को जीभ से गीला करता हुआ नाइटी में मटकते उछलते रेशमा मैडम के चूतड़ों को देख कर बोला )
वो लगातार कुछ न कुछ बोले जा रही थी और मैं तो बस उनकी बदन की कामुकता में खोया हुआ था कि मेरे जेब में मेरा मोबाइल वाइब्रेट हुआ
चेक किया तो अलीना के मैसेज

' kaha ho my love .. mommy missing you baby 😘😘 '
इस मैसेज के साथ एक 10 सेकंड का वीडियो भी था ओपन किया तो आंखे फेल गई ।

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अलीना ने भी नाइट गाउन पहन वीडियो बनाई थी और उसके गदराए जोबन के जोड़े आपस में खूब चिपके हुए थे नीचे शॉर्ट गाउन में झांकती उसकी चिकनी टांगे देख कर मैंने अपनी आंखे बंद कर एक गहरी आह्ह भरी और पेंट में फड़फड़ाते लंड को हौले से भींचा ।

: अह्ह्ह्ह्ह क्या गजब की चीज है ( आंखे बंद कर मैने हल्के से बुदबुदाते हुए अलीना को याद किया )
: क्या बोले तुम ( रेशमा मैम हाथ में कॉफी लेकर घुमती हुई मेरे और आते हुए बोली )
: अरे वो आपका घर , कितना गजब है ( मेरी फटी , जरूर इसने सुना ही होगा )
: हम्म्म बैठो और पियो ( वो मेरे करीब आकर बैठते हुए बोली )
मै भी उसके पास ही बैठ गया , एक बार फिर उसके जिस्म से आती वही मदहोश करने वाली परफ्यूम ने मुझे बेचैन करना शुरू कर दिया । लंड तो अलीना ने पहले से ही फौलादी कर दिया था ।

कॉफी पीते हुए वो कप की ओट से मुझे निहार रही थी और मैं नजरे चुरा रहा था ।
: आप अकेली रहती है क्या मैम यहां?
: हा , यहां मेरा है ही कौन , सोच रही हू एक रूम मेट रख लूं
: हा वो सही रहेगा , नही तो अकेलापन बहुत काटता है ( मै उदास होकर बोला )
: तुम भी अकेले ही रहते हो न , तुम ही आजाओ मेरे साथ रहने ( वो मुस्कुराकर बोली )
: क्या मै ? नही नही मै कैसे आपके साथ ? ( मेरी तो फट गई इसने तो सीधे घर में ही बुलाने का सोच लिया )
: क्यू ? किसी का डर है ? ( वो शरारत भरी मुस्कुराहट से बोली )
: नही ऐसी बात नहीं है वो मै इसका रेंट नही दे पाऊंगा और ऑफिस में पता चला तो आपकी इमेज खराब होगी बस इसीलिए ( मै बातों को संभालते हुए बोला , तब तक मेरे मोबइल पर अलीना का एक और मैसेज आया

मैंने हौले से मोबाइल टेढ़ा कर व्हाट्सएप खोला और उसको देख कर मेरा लंड एकदम से फड़फड़ाने लगा

" Come to your mumma my sexy boy 🤤 "

20220508-000121
इस मैसेज के साथ अलीना ने एक और तस्वीर भेजी जिसमे उसने अपने गाउन खोल रखे थे और दोनो बूब्स बाहर , उसके दोनो निप्पल किस्मिश से भूरे दाने एकदम कड़क और चमक रहे थे ।

: अच्छा मिलने तो आ सकते हो न मुझसे ( उसने बड़े खूबसूरत अंदाज में नजरे उठा कर कहा )
: हां? जी ? हा हा आ जाऊंगा ( मै हड़बड़ा कर जेब में मोबाइल रखता हुआ खड़ा हुआ )
: क्या हुआ ?
: वो mommy का मैसेज आ रहा है मुझे घर जाना पड़ेगा कुछ जरूरी काम है ( मै जल्दी जल्दी में वो बोल गया जो नही बोलना था )
: mommy? यू मीन अम्मी राइट ?
: हा हा अम्मी ही है ( मै खुद को संभालता हुआ )
: तो तुम्हारी अम्मी पढ़ी लिखी भी है ( वो कॉम्प्लीमेंट देते हुए बोली )
: अह हा , ये वाली तो है ( मै बड़बड़ाया )
: ये वाली मतलब ? ( वो पूरी कंफ्यूज थी और वही जेब में अलीना ने फोन लगाना चालू भी कर दिया )
: कु कुछ नही मैम , मुझे लेट हो रहा है सॉरी , मेरा मतलब बाय ( मै हड़बड़ाया )
: ओके बाय , आराम से जाना ( रेशमा मैम ने बड़े उदास हॉकर कहा )

फिर कई लिफ्ट से निकलता हुआ फोन पीक किया और बाइक से निकल गया तेजी से अपने रूम के लिए

जारी रहेगी
Nice hot
 
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DREAMBOY40

सपनों का सौदागर 😎
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Bahut hi lajawaab
Alina ne sahi kaha tha rat me shanu ki halat kharab hone wali hai🤣

Shaandar update bhai

Very erotic update

Shaanu ki kismat kuch zyada hi zor par hai, par bechara ban kar sab miss kar raha hai abhi to, dekhte hain launda kab jawan hoga.

Shandar lovely romantic update 💓🔥

रोचक अपडेट था मित्र, शानू बेचारा, कहीं वर्तमान तो कहीं अम्मी की यादों के बीच, कहीं रेशमा तो कहीं अलीना के बीच फंसा है देखते हैं और फंसता है या निकल जाता है।


भई , राजी ने रजा दिखाई तो क्या तीर मारा ! बहादुरी तो उसे काबू मे करने मे है जो अहद लिए हो कि वह काबू मे नही आने वाली है ।
एलिना , रेशमा , फलाना - ढ़िकड़ा , वगैरह - वगैरह आसानी से हासिल हैं और ऐसी औरतों के लिए ही कहा गया है कि यह खुद ही मर्द के गले पड़ने लग जाए तो मर्द की ईगो की तुष्टि नही होती , वो सेंस आफ अचीवमेंट का सुख नही पाता ।
बहादुरी तो नायक को उस औरत को हासिल करने मे है जिसके सपने वह हर घड़ी , हर मिनट , हर सेकेंड देखता है ।
शायद यही कारण है कि शानू साहब इन कन्याओं से दूर भागने की कोशिश करते आए है । लेकिन यह बड़े ही आश्चर्य की बात है कि दोस्त ( सिराज ) की अम्मा पर वो कैसे मेहरबान हो गए ? इस का विस्तृत वर्णन चाहिए ।
कहीं छोकरा मैच्योर औरतों का ही दिवाना तो नही ?

वैसे फ्लैश बेक के साथ साथ प्रजेंट डे के साथ बेहतरीन सामंजस्य बैठाया है आपने ।
आउटस्टैंडिंग अपडेट भाई ।

Bahut hi lajawab update

Mast jabardast story hai bhai


Bhut hi shandaar story hai bhai apki.....#
Past or Present ko bhut ache se likhte ho app
Yeh khubiya apki bhut achi lagi.......Waiting for next update.....

:congrats: start new story

Sorry Bhai ji aap ke update nhi pad paya kyu ki navratri me thoda busy tha

Waise farida Jamila Alina sethani ji Jo Sanu ki mami lagegi sab ke sab mast carector h ab jaldi se kisi ki chudai bhi dikha do Bhai ji

bhai ji agr ho sake to sapna or hakikat me bhi story continue Karo na Bhai ji kyu ki us story ko hm sab bht miss kr rahe h Bhai ji please aap sochna iske liye

बहुत ही शानदार अपडेट है!

waiting for next update….

Mast update hai gjb

Bhai annila, mam, aur sabnam ke sath itni line main hai par jo maza padne main ammy ke sath aata hai aisa kisi ke sath nahi

Absolutely wonderful and mind blowing story.

The story is excellent but very slow update!

मन को झकझोर देने वाली और शानदार कहानी!रोमांचक और कामुक लेखन!मोहक और आकर्षक विवरण!

bahot romantic, exciting aur sensual bhi hai woooooow

hats off yaar, maja hi maja aya :love: :love: :love:

Kahan ho bhai... Update dalao jaldi sw

देर सवेर होने के लिए माफी चाहूँगा दोस्तो
त्योहार परिवार और रोज्गार को लेकर व्यस्त हूँ
इसलिए देरी हो रही है

अगला अपडेट पोस्ट कर दिया है
उम्मीद करता हू अपने छोटे भाई की गलतियों को नजरअंदाज कर उसकी मेहनत भरे इस कडी की समिक्षा जरुर करेंगे ।
 
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UPDATE 005
MOMMY


अगली सुबह मैं ऑफिस के लिए निकल गया था और अजीब बोरियत सी लग रही थी ।
तभी अलीना का फोन आया

: कुछ भेजा है मैने देखो ( पूरे हक से वो बोली )
मैंने मोबाइल खोला और व्हाट्सएप चेक किया तो तस्वीरें शेयर की हुई थी
जैसे ही मैने उनको ओपन किया मेरे होठ मुस्कुरा उठे ।
अभी अभी वो उठ कर बाथरूम में ब्रश करने गई थी ।

GSv-Vze-Wc-AAZHka
: अच्छी है ना , देख कर डिलीट कर देना ( वो चहक कर बोली)
: नही मै तो फ्रेम करवाने वाला हु इसको ( मैने उसको चिढ़ाना चाहा , मगर मेरी निगाहें उसकी नाइट सूट से झांकती गोरी गोरी मौसमियो पर थी )
: हिम्मत है तो मेरी डीपी लगा के दिखाओ व्हाट्सएप पर तो जानू
: अच्छा जी डेयर दे रही हो
: हा दिया , लगा कर दिखाओ पूरे 24 घंटे के लिए
: नही वो अब्बू !!
: क्यू फट गई ना फट्टू कही के ( उसने मुझे चिढ़ाया )
: हा जैसे तुम लगा लोगी मेरा ( मैने उसको जवाब देना चाहा )
: मैने पहले ही लगा रखी है हूंह ( वो तुनकी और फ़ोन काट दिया

मै हंसते हुए उसकी व्हाट्सएप डीपी पर अपनी तस्वीर देखने लगा जो उसने कल ही खींची थी ।
तभी उसका एक और मैसेज आया
"dekh kar delete kar dena 😘😘"

: देख कर डिलीट कर देना
: क्या ? लेकिन क्यू
: तेरे अब्बू ने मोबाइल चेक किया ना तो तेरी शामत आयेगी ( अम्मी ने मुझे अब्बू का खौफ दिखाया , जैसे मैं डर ही जाऊंगा । लेकिन उन्हें क्या पता अब तो मेरी सारी मनमानायिया ही उनके भरोसे थी कि कुछ भी हो अम्मी अब्बू को माना लेंगी । )
: आप हो न मनाने के लिए उनको ( मै मुस्कुराया )
वो भीतर से गुस्से से उबली मगर फिर शांत होकर झेप भरी हंसी से खिल उठी कुछ सोचते हुए
: तू बहुत बदमाश हो गया है , क्यू देखता है ये सब फिल्में । भोजपुरी हीरो बनेगा क्या ? ( अम्मी बात बदलते हुए बोली )
: मै तो पहले से ही आपका हीरो हूं ना ( मै खिलखिलाते हुए उनसे लिपटने को हुआ तो वो मुझसे दूर होकर बिस्तर पर ही सोए सोए खिसक गई )
: नही नही मेरे ऊपर मथना नही है , तू जल्दी से खतम कर अपनी फिल्म (अम्मी मुझसे दूर होते हुए साइड बदल कर करवट लेली और उनकी बड़ी सी गाड़ फेल कर मेरे सामने थी )
मेरे पैर मजह कुछ दूरी पर थे अम्मी के गुदाज नरम भारी भरकम चुतडो से , और पैर फैला कर मैंने उन्हें अम्मी के कूल्हों पर टिका दिए जैसे सोफे पर रखते हो

: शानू फिर तू शुरू हो गया ( अम्मी ने खीझ कर बोला )
: अम्मी रखने दो ना ,ऐसे अच्छा लगता है कितना नरम है हिहि ( मैने भी उनके कूल्हों पर हक जताते हुए अच्छे से पैर रख दिया )
: हम्मम तो अब तुझे मेरे कूल्हे नरम लग रहे है बदमाश कही का ( अम्मी फिर सोने की कोशिश करने लगी )
नया नही था मेरे लिए या अम्मी के लिए जब मैं उनके कूल्हों पर पैर रखकर सोया हूं
मगर कल रात को जो कुछ भी मैने देखा मेरे दिल में लालच ने जगह बना ली और जो कुछ भी इरादे मेरे जहन में थे उन्हें सोच कर ही मेरा लंड पूरा तनमनाया हुआ था ।

मूवी तो महज एक जरिया था मेरे जिस्म में एक सिहरन सी उठ रही जब मेरी नंगी एड़ियों के तालु अम्मी की बड़ी बड़ी 48 साइज की चौड़े विशाल चूतड़ों के इर्द गिर्द रेंग रही थी
पूरे जिस्म में एक मदहोश करने वाली मीठी गुदगुदाहट सी उठने लगी थी मानो ,

पैर की उंगलियों से धीरे धीरे करके करीब 10-15 मिंट में कही मै उनके नायाब बड़े भारी भरकम चूतड से उनकी सूट को सरका पाया था । सूती सलवार में से उनकी पैंटी साफ़ साफ़ झलक रही थी जो उनकी चूतड पर में चुस्त कसी नजर आ रही थी ।

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लंड मेरा पूरा फौलादी हुआ पड़ा था और जैसे ही मेरी पैर की उंगलियों ने अम्मी के नरम मुलायम चूतड को सलवार के ऊपर से छुआ एक बिजली सी दौड़ गई मेरे जिस्म में ।
रोम रोम तनमाना गया ,सांसे उफनाने लगी और डर से कलेजा धक धक होने लगा कि अम्मी गुस्से से पलट कर जवाब न दे दे ।
कुछ देर क्या पूरे 10-12 मिंट मैने पैर जड़ किए रखे , सूत भर हरकत नही की मैने और फिर धीरे धीरे पूरी ऐड़ी को अम्मी के गुदाज मुलायम चूतड पर हल्का सा सहलाते हुए गोल में घुमाया ।
अजीब सी चुनचुनाहट भरी तरंगे मेरे पैरो से होकर पूरे जिस्म ने फेल गई और लंड पूरी बगावत पर आ पहुंचा ।
मूवी फुल वैलुम पर चल रही थी , फिल्म की पड़ी ही किसे थी मेरा सारा फोकस अम्मी के फैले हुए गुदाज गुलगुले गाड़ पर था , जिसमे मेरी एडिया धंसी जा रही थी ।
धीरे धीरे मेरी पैर की उंगलियां रेंगती रही और हिम्मत कर मैने अम्मी के बड़े बड़े मटके जैसे चूतड़ों को ढलानों पर पैर को ले जाने लगभग दोनो जांघो की सिरो से उनके चूतड जुड़े होते है ।
मेरे पैर के तलवे में वहा की गर्मी महसूस होने लगी थी ।
उस तपीस से मेरा गला सूखने लगा था मेरी नज़रे कभी अम्मी के सर की ओर होता तो कभी मेरे पैरो पर जहा से महज कुछ इंच ही दूर था मैं उनकी चूत की निचली छोरो को छूने से ।



: शानू वहा नही
( मैंने चौक कर उसकी ओर देखा , वो मेरे ऑफिस की एक सीनियर थी )
: फिर कहा मैम ?
: ये यहां पर ( उसने फाइल के कागजात पर मेरे करीब खड़े होकर उंगली रखी , उसके जिस्म से आती परफ्यूम की खुशबू से मुझे बेचैनी होने लगी थी । खुद की संभालते हुए मैने सिग्नेचर बनाया )

: कहा खोए रहते हो आजकल ( अपने लटो को बहुत ही कैजूअली उसने अपने कानों के पीछे कर मुस्कुराते हुए वो बोली)
: वो मै ... ( मै अटक ही गया वही चेयर पर बैठे हुए ही उसकी नीली आंखों में )
: हा बोलो ना ( उसने मुझे अपनी ओर ऐसे देखता पाकर वो लाज से अपनी पलकें झुका ली और मुस्कुराहट से उसके गाल गुलाबी हो उठे )
: वो बस घर की याद आ रही थी ( मै इधर उधर देखने लगा )
: अच्छा , बस घर की ही या घर वाली की हिहिहि ( उसने छेड़ा मुझे )
: हा घरवाली की भी ( मै अम्मी को सोच कर उसकी बातों पर मुस्कुरा )
: तो क्या रिश्ता तय हो गया ( बड़े ही उदास दिल से उसने कहा और कुछ दूरी सी बनाई उसने )
: क्या ? नहीईईई , किसने कहा ? हा रिश्ता आया था मगर मुझे करनी नही थी ( मै हसता हुआ बोला )

एकदम उसके चेहरे की बुझती लाली फिर से खिल उठी । उसके दिल के भाव से मैं क्या पूरा ऑफिस परिचित था । कि रेशमा मैम अगर किसी पर लट्टू है तो शानू ही है । वरना भला कोई सीनियर रैंक की अधिकारी अपने क्लास 3 ग्रेड के मामूली स्टाफ से सिर्फ एक सिग्नेचर के लिए उसके टेबल पर क्यू आती ।

: वैसे आज शाम का क्या प्लान है ? ( रेशमा मैम ने फाइल हाथ में लेते हुए बोली )
: जी वो कुछ भी नही , मतलब कुछ सोचा नही है अभी ( उनके सवाल से मैं लगभग उलझ ही गया था )
: क्या तुम आज मुझे मेरे घर ड्रॉप कर दोगे , वो मेरी कार आज सर्विस के लिए गई है ।
: जी , क्यू नही जरूर ( मै चाह कर भी मना नही कर पाया उन्हे )
फिर वो मुस्कुराती हुई निकल गई ऑफिस से और मैने गहरी सांस लेते हुए अपनी क्रॉस की हुई टांगे खोल दी ।
: ओह बहिनचोद इसके करीब आते ही क्या हो जाता है , क्या नशीली परफ्यूम लेकर घुमती है साला दिमाग काम करना बंद हो जाता है । अभी बोल दिया है तो जाना ही पड़ेगा । ( मै मन ही मन बड़बड़ाया )

: हम्मम ये लो , सारे पेंडिंग कमप्लेन की फाइल ( एक लड़की ने जोर से गुस्से में 4 - 5 फाइलों को मेरे आगे डेस्क पर पटका )
: अरे क्या हुआ सबनम , मैम ने कुछ कहा क्या ( मै उसके परेशान चेहरे की ओर देख कर बोला )
बदले में वो मुझे घूरते हुए बोली : मुझे क्यू बोलेंगी मैम कुछ , उन्हे तो सिर्फ तुमसे ही बात करना पसंद है ना
: ये फाइल्स नोट डाउन हो जाए तो मुझे मैसेज कर देना ( सबनम तुनकती हुई निकल गई अपने डेस्क के लिए)
: अब इसको क्या हुआ , मै हूं क्या भाई सब मुझपर ऐसे हक जताते है जैसे मैं उनका पति हूं ( खुद से बड़बड़ाया )

खैर मैंने सारी फाइल्स नोट डाउन की और उसे मैसेज कर दिया


: sorry
: Mai kya karungi tumhari sorry ka
: Ab kya office me bhi tum aise hak jataogi
: Tum har jagah sirf aur sirf mere ho samjhe mister ( अलीना ने जवाब दिया )
: ok ok , man jaane ka kya logi ?
: Puri raat mere se baat wo bhi video calling 😍
: Bade saste me man gayi yar
: achcha bachchu call karna fir pata lagega , ok bye 😘

मैं मुस्कुरा रहा था और मोबाइल देख रहा था
: चले शानू ( रेशमा मैम मेरे डेस्क के पास आकर बोली )
: अह हा चलिए ( मै मोबाइल जेब में रखता हुआ )


: तुम यहां अकेले रहते हो , अम्मी को बुला क्यू नही लेते अपने , डैड भी तुम्हारे जॉब करते है जब ( बाइक पर बैठी हुई रेशमा मैम मेरे कान के पास आकर बोली )
: वो अब्बू हर वीकेंड घर आ जाते है तो अम्मी कैसे आयेंगी ( मै उदास होकर बोला )
: अरे तो क्या उन्हे अपने बेटे की जरा भी फिकर नही है ( रेशमा थोड़े जज़्बाती होकर तेज आवाज में बोली )
: नही मैम ऐसा नहीं है ( मै दिल में अम्मी को याद करते हुए लगभग रोने ही वाला था )
: आज भी कॉल नही आया ना घर से ( वो मेरे कंधे पर हाथ रखते हुए बोली )
: जी , आपको कैसे ? ( मेरी आंखे छलक ही पड़ी)
: सिराज ने बताया ( वो बोली और चुपचाप बाइक चलाता रहा , कुछ ही देर में उनका फ्लैट आ गया )
: आपका घर आ गया मैम ( मैने बाइक रोकी और शर्ट की बाजू से अपना चेहरा साफ किया )
: आओ ना ( वो बाइक से उतरते हुए बोली )
: जी फिर कभी , मुझे घर जाना है ( मै खुद से ही मानो जबरदस्ती करता हुआ बोला )
: ओहो शरमाओ मत और आओ चलो ( वो मेरे बाजू में बाजू डाल कर मुझे बाइक से खींच कर उतारती हुई बोली )
: अरे लेकिन , वो ... ( मै असहज से हस्ते चेहरे के साथ उनके साथ चल पड़ा )
: मैम छोड़िए , कोई देख लेगा ( मै अपने आप को छुड़ाता हुआ बोला )
: हा तो देखने दो , मै नहीं छोड़ने वाली कही तुम भाग गए तो ( वो चहक कर पूरा हक जताते हुए बोली )
: आपको कोई चाह कर भी नही छोड़ना चाहेगा मैम ( मै उनके अदाओं से हारता हुआ खुद से ही बड़ाबड़ाते हुए उनके साथ खींचता चला गया )
: अच्छा अब हम लिफ्ट में है अब तो छोड़िए
: ठीक है , लेकिन भागना मत ( वो मुझे उंगली दिखाती हुई वॉर्न करती हुई हस पड़ी और मैं उसके खिलखिलाते चेहरे को देख कर ठहर सा गया )
मुझे अवाक देख कर वो फिर से शरमाई और अपने लटों को फिर से कानो में उलझाती हुई अपनी पलके नीची कर ली : तुम मुझे ऐसे मत देखो प्लीज

: जी , सो सॉरी वो मै ... ( मै फिर से इधर उधर देखने लगा )
: धत्त बुद्धू इसमे सॉरी वाली बात नही है ( वो आंखे नचा कर मुस्कुराई )
: फिर क्या बात है ( मेरी सांसे धक धक हो रही थी उसके शर्ट के ऊपरी खुले बटन से झांकती उसकी 36 साइज की गोरी गोरी पहाड़ियों की घाटी देख कर )
: वो... कुछ नही , आओ चले फ्लोर आ गया मेरा ( वो लिफ्ट से मेरे आगे निकली और जींस में उसके चूतड भरपूर उभरे हुए थे , गजब की मादक चाल थी । लंड पूरा हरकत में आ चुका था । )
लॉक खोल कर हम हाल में गए , सपने जैसा था मेरे जैसे मिडिल क्लास वाले लड़के के लिए ऐसा अलिसान फ्लैट जो मजह 32000 रुपए माह की तनखाह पर जीवन गुजार रहा हो ।
फिल्मों में ही देखा था ऐसा फ्लैट , चमचमाती फर्श , गलीचा और मुलायम सोफा उसके आगे ग्लास वाली मेज, सोफे के बगल में इंडोर प्लांट और सबसे बढ़ कर मन को भीतर से खुश कर दे ऐसे जादू भरी रूम स्प्रे की महक ।

कंधे से साइड बैग उतार कर उसने सोफे पर रखते हुए : मै चेंज करके आती हूं तुम बैठो

फिर वो किसकी हिरणी की तरह बड़ी अदा से अपने कूल्हे हिलाते हुए कमरे में चली गई ।
मैंने एक गहरी सास ली और हाल के टहल कर घर देखने लगा , ऐसे ही आलीशान घर का सपना देखते बड़ा हुआ था ।



: नही नही अम्मी ये देखो , ऐसे वाला स्विमिंग पूल होगा हमारे बंगले में ( मोबाइल में वीडियो चला कर अम्मी को एक बंगले और स्विमिंग पूल दिखाता हुआ बोला )
: अच्छा और इसमें नहाएगा कौन ( अम्मी अपनी हसी दबाती हुई बोली )
: आप , मै ,अब्बू
: धत्त बदमाश कही का , अपनी अम्मी को खुले में नहलाएगा वो भी ऐसे कपड़ो में ( अम्मी का इशारा स्विमिंग पूल में नहाती उस महिला की ओर था जिसने बिकनी पहन रखी थी और उसके मोटे मोटे दूध और गाड़ भरपूर खिल कर उभरे हुए थे )
: अरे नही ये बंगले में सब प्राइवेट होता है , वहा बाहर का कोई नही आता जाता ( मै अम्मी को समझाना चाहा मन में ये लालच लिए कि काश इस चीज के अम्मी हा कर दें तो उन्हें बिकनी में देख तो पाऊंगा )
: बंद कर इसे अब तेरे अब्बू को पता चला ना , इस घर में भी नहाने को नही मिलेगा तुझे ( अम्मी ने मेरे मजे लिए )



: अच्छी दिख रही है ना
: अह, हा बहुत खूबसूरत ...... ( मै दीवाल पर लगी एक पेंटिंग से नजर हटा कर रेशमा मैम की ओर देखा जो अभी अभी शोवर लेकर निकली थी और मैरून नाइटी में उनका जिस्म मुझे पागल किए जा रहा था ।
उनका एक पैर सोफे पर था और वो आगे झुक कर पैरो में पता नही किसी तरह का लोशन लगा रही थी

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ऊपर उनकी मोटी मोटी चूचियां की घाटी ऐसे लटकी हुई थी मानो अब तब बाहर निकल ही जाए ।

मै नजरे चुराता हुआ गले से थूक गटकने लगा और वो मुस्कुराती हुई किचन की ओर जाने लगी : क्या पियोगे , चाय कॉफी या ड्रिंक ?

: जी , कॉफी चलेगी ( मै मेरे सूखते होठों को जीभ से गीला करता हुआ नाइटी में मटकते उछलते रेशमा मैडम के चूतड़ों को देख कर बोला )
वो लगातार कुछ न कुछ बोले जा रही थी और मैं तो बस उनकी बदन की कामुकता में खोया हुआ था कि मेरे जेब में मेरा मोबाइल वाइब्रेट हुआ
चेक किया तो अलीना के मैसेज

' kaha ho my love .. mommy missing you baby 😘😘 '
इस मैसेज के साथ एक 10 सेकंड का वीडियो भी था ओपन किया तो आंखे फेल गई ।

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अलीना ने भी नाइट गाउन पहन वीडियो बनाई थी और उसके गदराए जोबन के जोड़े आपस में खूब चिपके हुए थे नीचे शॉर्ट गाउन में झांकती उसकी चिकनी टांगे देख कर मैंने अपनी आंखे बंद कर एक गहरी आह्ह भरी और पेंट में फड़फड़ाते लंड को हौले से भींचा ।

: अह्ह्ह्ह्ह क्या गजब की चीज है ( आंखे बंद कर मैने हल्के से बुदबुदाते हुए अलीना को याद किया )
: क्या बोले तुम ( रेशमा मैम हाथ में कॉफी लेकर घुमती हुई मेरे और आते हुए बोली )
: अरे वो आपका घर , कितना गजब है ( मेरी फटी , जरूर इसने सुना ही होगा )
: हम्म्म बैठो और पियो ( वो मेरे करीब आकर बैठते हुए बोली )
मै भी उसके पास ही बैठ गया , एक बार फिर उसके जिस्म से आती वही मदहोश करने वाली परफ्यूम ने मुझे बेचैन करना शुरू कर दिया । लंड तो अलीना ने पहले से ही फौलादी कर दिया था ।

कॉफी पीते हुए वो कप की ओट से मुझे निहार रही थी और मैं नजरे चुरा रहा था ।
: आप अकेली रहती है क्या मैम यहां?
: हा , यहां मेरा है ही कौन , सोच रही हू एक रूम मेट रख लूं
: हा वो सही रहेगा , नही तो अकेलापन बहुत काटता है ( मै उदास होकर बोला )
: तुम भी अकेले ही रहते हो न , तुम ही आजाओ मेरे साथ रहने ( वो मुस्कुराकर बोली )
: क्या मै ? नही नही मै कैसे आपके साथ ? ( मेरी तो फट गई इसने तो सीधे घर में ही बुलाने का सोच लिया )
: क्यू ? किसी का डर है ? ( वो शरारत भरी मुस्कुराहट से बोली )
: नही ऐसी बात नहीं है वो मै इसका रेंट नही दे पाऊंगा और ऑफिस में पता चला तो आपकी इमेज खराब होगी बस इसीलिए ( मै बातों को संभालते हुए बोला , तब तक मेरे मोबइल पर अलीना का एक और मैसेज आया

मैंने हौले से मोबाइल टेढ़ा कर व्हाट्सएप खोला और उसको देख कर मेरा लंड एकदम से फड़फड़ाने लगा

" Come to your mumma my sexy boy 🤤 "

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इस मैसेज के साथ अलीना ने एक और तस्वीर भेजी जिसमे उसने अपने गाउन खोल रखे थे और दोनो बूब्स बाहर , उसके दोनो निप्पल किस्मिश से भूरे दाने एकदम कड़क और चमक रहे थे ।

: अच्छा मिलने तो आ सकते हो न मुझसे ( उसने बड़े खूबसूरत अंदाज में नजरे उठा कर कहा )
: हां? जी ? हा हा आ जाऊंगा ( मै हड़बड़ा कर जेब में मोबाइल रखता हुआ खड़ा हुआ )
: क्या हुआ ?
: वो mommy का मैसेज आ रहा है मुझे घर जाना पड़ेगा कुछ जरूरी काम है ( मै जल्दी जल्दी में वो बोल गया जो नही बोलना था )
: mommy? यू मीन अम्मी राइट ?
: हा हा अम्मी ही है ( मै खुद को संभालता हुआ )
: तो तुम्हारी अम्मी पढ़ी लिखी भी है ( वो कॉम्प्लीमेंट देते हुए बोली )
: अह हा , ये वाली तो है ( मै बड़बड़ाया )
: ये वाली मतलब ? ( वो पूरी कंफ्यूज थी और वही जेब में अलीना ने फोन लगाना चालू भी कर दिया )
: कु कुछ नही मैम , मुझे लेट हो रहा है सॉरी , मेरा मतलब बाय ( मै हड़बड़ाया )
: ओके बाय , आराम से जाना ( रेशमा मैम ने बड़े उदास हॉकर कहा )

फिर कई लिफ्ट से निकलता हुआ फोन पीक किया और बाइक से निकल गया तेजी से अपने रूम के लिए

जारी रहेगी
Super Update Bhai ❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️👍👍❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️❤️👍👍❤️👍❤️❤️❤️❤️
 

Iron Man

Try and fail. But never give up trying
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UPDATE 006


नाइटी

कमज़ोरी ही है मेरी , सैटिन की नाइटी ।
वो मखमली सा अहसास जिसपर हाथ फिराने से एक अलग ही तरह की ठंडी मुलायम तरंग दौड़ती है बदन में दिल की धड़कने बढ़ा जाती है मेरी ।
उस कपड़े में मानो एक अजीब सी मादक गंध सनी होती है , जिसकी खुशबू सासो में बसते ही पैंट में वाइब्रेशन होने लगता है ।

बाइक चलाते हुए पैंट में हाथ डाल कर मैने मोबाइल खोला , अलीना ने एक और sexy सेल्फी भेजी थी । उस तस्वीर के साथ मैसेज भी था ।

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" Lo beta dudh pi lo "


: ले बेटा दूध पी ले
मगर मेरी नजर अम्मी पर थी पहली बार आज वो बिना दुपट्टे के मेरे आगे थे वो भी नाइटी में , उनके बड़े बड़े मोटे दाने के निप्पल नाइटी फाड़ कर आने को बेताब थे । मेरा मुंह कुछ बोलने को खुला मगर मैं वैसे ही ठहर सा गया

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: ले पकड़ न ( मै नजरे हटा कर अम्मी के हाथ से दूध का ग्लास लिया और अम्मी ने लपक कर मेरे बिस्तर से मोबाइल उठा ली )
: अरे क्या हुआ मोबाइल क्यों ( मानो मेरी रूह उठा कर ले जा रही हो अम्मी ऐसा महसूस हुआ , ना जाने कैसा जुड़ाव हो गया था चंद दिनों में मोबाइल से )
: तेरे अब्बू ने खास बोला है कि रात में मोबाइल तेरे पास नहीं होगी ( अम्मी के दिखावटी गुस्से में भी मुझे एक छिपी हुई शरारत की झलक दिखी , मै समझ गया कि अम्मी अब्बू से बाते करेंगी )



फोन पर ..
: ऊहू इतना तड़प रहे थे क्या कि आधी काफी छोड़ कर चले आए मेरे लिए
: mommy ने दूध के लिए बुलाया था तो कैसे नहीं आता ( मैने अलीना को फुसलाया )
: उस ब्लू आइज वाली है कही तुम्हे हिप्नोटाइज तो नहीं न कर दिया ( उसने शक किया)
: तुम्हारे प्यार के जादू के आगे सब धुंधला हो जाता है मेरी जान ( उफ्फ क्या कसा हुआ जोबन है इसका , मोबाइल के आई तस्वीरों में उसके कड़क भूरे निप्पलों को निहारता हुआ मै सिहरा )
: और खबरदार जो उसके शर्ट से झांकते कबूतरों को दाना दिया तो , कामिनी जानबूझ कर चोंच उठाए घूमती है तुम्हारे आगे हूह ( वो पूरी पोजेसिव होकर मुझ पर भड़की )
: मै क्यू उन्हें दाना डालूंगा भला , मेरे पसंदीदा कबूतरों के जोड़े तो तुम्हारे पास है ओह्ह्ह्ह कितने कड़क और तने हुए है ओह्ह्ह्ह जी चाहता है कि
: क्यायाआ? बोलो न क्या मन कर रहा है ? ( अलीना की सांसे बेताब थी मेरे मुंह से लब्ज़ सुनने को , उसके बदन में उठती मदहोशी और वासना की खुमारी में मोबाइल पर महसूस कर सकता था , गर्म सासो की आहट और उसमें छिपी हुई मादक कसमसाहट , मानों वो फोन को मुंह के पास रखे हुए अपने दोनों दूधिया रस भरे चूचियों को मसल रही हो ।
: सच में बोलूं क्या ? ( मैने उसे तड़पाया )
: उम्मम्म बोलो न ( वो पूरे जोश में सिसकती हुई कुनमुनाई)
: पहले ये बताओ इसके साथ जो दिलाया था वो क्यों नहीं पहना ?




: आपने ही बोला था कि इसके साथ दूसरे कपडे पहनने की जरूरत नहीं होती
: तो क्या नीचे भी नही पहनी हो (फोन स्पीकर पर था और अब्बू की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनमना गया )
फरीदा शर्मा कर : धत्त चुप करिए आप , नटखट कही के । सारी शरारत जानती हु मै आपकी
अब्बू : अब मत तरसाओ न , वीडियो कॉल करू
अम्मी : उन्हू वो इसमें कान में लगाने वाला म्यूजिक वाला नही है , आवाज ऊपर तक जाएगी
अम्मी की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनामना गया कि आज रात तो पूरा फुल प्रोग्राम सेट कर रखा है अम्मी और अब्बू ने वीडियो कॉल पर
अब्बू : अच्छा ठीक है इस बार आऊंगा तो वो इयरफोन लेके आऊंगा , फिर तो अपने गदराए जिस्म का दीदार कराओगी न बेगम
अम्मी इतरा कर: उहू बिलकुल भी नही ,
अब्बू : क्या ? पर क्यू ?
अम्मी : नही आप बहुत वो हो , और मुझे शर्म भी आयेगी
अब्बू और अम्मी की बातें सुनकर मेरा लंड और मैं दोनो खुश हुए जा रहे थे


: ऊहू देखो तो मेरी शेरनी को , अब मुझसे ही शर्मा रही है उम्म्म ( मैने उसे चिढ़ाया )
: नहीईई तुम ऐसे मुझे तंग नहीं कर सकते , तुम तुम पहले जैसे रहो न ( अलीना ऐसे उखड़कर बोली जैसे उसने कुछ खो सा दिया मुझमें , मुझे पाने के बाद )
: अच्छा जी कैसे होना चाहिए मुझे फिर ( मै हंसता हुआ उससे सवाल दोहराया )
: जैसे पहले तुम मुझे देख कर डर जाते थे , मेरे करीब आने पर कांपने लग जाते थे । मै छूती थी तुम्हे तो घबरा जाते थे वैसे ही एकदम मासूम और प्यारे से । मुझे तुम्हे छेड़ना परेशान करना पसंद है समझे बुद्धु हूह ( वो अपनी बीती मीठी यादों को जबान से दुहराती हुई तुनकी)
: याद है दुकान के उसे चेंजिंग रूम में जब तुमने मुझे अपनी ओर खींचा था एकदम से मुझे अपने करीब कर लिया था , तुम्हारे वो बड़े बड़े मोटे नुकीले तीर मेरे सीने को चिर रहे थे
: हम्म्म ( अलीना की सांसे फिर से गरमाने लगी )
: तुमने ही कहा था कि मुझसे डरो मत और फिर जब तुम मेरे रूम पर आई थी जहां मैं लेता हु वहां तुम मेरे बाहों में थी चिपकी हुई बिना कपड़ो के , तुम्हारी मखमली जांघें मेरे जांघों के बीच गर्म हो रही थी और तुम मेरे सीने से लिपटी हुई मुझे कसके पकड़े हुए थी , याद है वो पल
: सीईईईई उम्मम्म वो सब मै कैसे भूल सकती हु मेरे राआजाह ( अलीना कसमसाती हुई बोली )
: मै भी नहीं भूल सकता हूं , तुमने मुझे मेरे खामियों और मेरी जिद के साथ मुझे अपनाया था । फिर तुमसे कैसे डरना , डरता था कही तुम मुझसे नफरत न कर बैठो मेरे अतीत मेरे फैंटेसी को जानने के बाद , बस इसीलिए कतराता था ।
: धत्त बुद्धू , तुम इतने प्यारे हो तुमसे नफरत कैसी और mommy अपने बेटू से कभी नाराज नहीं होती समझे हिहीही ( वो प्यार से मुझे समझाते हुए एकदम से चुलबुली सी हो गई )

: mommy
: यस्स माय बेबी ( अलीना ने बड़े लुभावने स्वर में जवाब दिया )
: I wanna see you your booby mommy ... वीडियो कॉल करो ( मै पूरे कामोत्तेजना में डूबता हुआ अपने पैर आपस में रगड़ता हुआ बोला )





: धत्त नहीइइ मै वीडियो बना कर भेज दूंगी आपको , ऐसे मुझे शर्म आएगी ( अम्मी लगभग शरमाते हुए लहजे में बोली )
: तो कुछ तस्वीरें भी भेजना मेरी जान अपने बड़े फैले हुए चूतड़ों के । उन्हें याद करता हूं तो लंड मचल उठता है मेरा ( स्पीकर पर अब्बू की बातें सुन कर मेरे आंखो में अम्मी के बड़े फैले हुए चौड़े चूतड बस से गए और लंड लोवर में अकड़ सा गया ।
: धत्त गंदे , आपको तो बस बड़ी बड़ी हिलती डुलती चीजे ही भाती है , चाहे वो मेरी हो या फिर उस हुह्ह्ह ( अम्मी ने बीच में बात को रोक दिया और मैं उलझ गया कि अब दूसरी कौन है जिसकी बड़ी हिलकोरे खाती गाड़ के अब्बू दीवाने है )
: हा मेरी जान लेकिन तुम्हारी मोटे मोटे चूतड़ों की कसी दरारों को फैलाकर कर पेलने में जो मजा आता है अह्ह्ह्ह सीईईईईई मेरी जान देखो न मेरा लंड तुम्हारे बड़े बड़े मटके जैसे चूतड़ों को याद कर लार छोड़ रहा है आओ न चाट लो सीईईईई ओह्ह्ह्ह
: अब बस भी करिए शानू के अब्बू मुझसे रहा नही जायेगा । आप दूर से मुझे तंग कर खुद को शांत कर लेते है और मुझे आपकी यादों में तड़पना पड़ता है सीईईईई अह्ह्ह्ह ( अम्मी सिसकिया लेने लगी )
: मेरी यादों में तड़पती हो या मेरे इस फौलादी लंड के जो तुम्हारी लंबी बुर के फांके चीरता हुआ तुम्हे सुकून देता है ( अब्बू की बातों से मेरी हालत खस्ता हुई जा रही थी और अम्मी की सिसकिया और कमरे से आती मादक कुनमुनाहट से साफ पता चल रहा था कि अम्मी बिस्तर पर मचल रही है । )
: ओह्ह्ह मेरे सरताज अह्ह्ह्ह्ह मेरे साजन ओह्ह्ह उसे याद करती हू तो मेरी सलवार गीली हो जाती है सीईईईई आजाओ न जल्दी से , कब तक मुझे ऐसे तड़पाओगे मेरे राजा ओह्ह्ह्ह
: तुम कहो तो कल ही आ ज़ाऊ तुम्हारे पास




: ओह्ह्ह यस्स बेटू कम टू योर हॉर्नी मम्मा उम्मम
: उम्मम माय सेक्सी mommy कल आऊंगा तो दूधू पिलाओगी न

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: हा बेटू क्यू नहीं , mommy का दूधू बेटू के लिए ही है मेरा बच्चा अह्ह्ह्ह अब चूस लो न इसे ओह्ह्ह्ह यस्स ऐसे ही पी लो मेरा बच्चा ( अलीना ने वीडियो कॉल पर अपने गोरे गोरे चूचे दिखाते हुए उन्हें मस्ती में मसलने लगी और मैं भी अपना लंड बाहर निकाल कर उन्हें देख कर हिलाने लगा )
: ओह्ह्ह mommy आपके बूब्स बहुत जूसी है उम्म्म सो टेस्टी उम्मम्म सीईईईई आई लव टू सक योर बूबी उम्मम्म आह्ह्ह ( मै अपनी मोबाइल स्क्रीन पर दिखते अलीना के निप्पल को जीभ से चाटने लगा और अलीना पागल होकर अपने पैर पटकने लगी )
: ओह्ह्ह यस्स बेबी सक इट उम्मम सक इट ओह्ह्ह्ह गॉड माय सेक्सी बेटू सक योर मम्मा बूबी ओह्ह्ह्ह यस्स अह्ह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह शानू मेरा आयेगा ओह्ह्ह्ह डाल दो न अंदर
: कहा डाल दु मेरी जान



: अपनी फरीदा की बुर में मेरे राजा , फाड़ो न मेरी चूत को अओहह्ह घुसा दो अपना मोटा बड़ा लंड ओह्ह्ह्ह मेरे राजा ( अम्मी सिसकियां लेती हुई तड़पती हुई बोली )
: लो मेरी जान अह्ह्ह्ह घुसा दिया ओह्ह्ह कितनी गरम और मुलायम चूत है तेरी अह्ह्ह्ह्ह कितना तप रहा है ( अब्बू की बातें सुनकर मैं भी अपना लंड मुठियाता हुआ अम्मी की चूत की गर्मी को महसूस करने लगा )
: है न मेरे राजा , आना इस बार पूरा लंड पिघला लूंगी अपनी बुर ओह्ह्ह्ह शानू के अब्बू अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा अह्ह्ह्ह्ह चोदो मुझे अह्ह्ह्ह्ह कस कस के चाहिए मुझे अह्ह्ह्ह
: हा मेरी जान लेहह्हा अह्ह्ह्ह हचक हचक कर तेरे ऊपर चढ़ कर पेल रहा हु तेरी बुर में ओह्ह्ह्ह कितनी रसीली है इसे और भी रसीली कर दु क्या मेरी जान
: हा मेरे राजा कर दो न , भर दो मेरी चूत को अपने गर्म रस से अह्ह्ह्ह जब आपके रस से मेरी रस मिलती है तो उसे अपने बुर पर मलने में मुझे मजा आता है आह्ह्ह्ह मेरे राजा झड़ने वाली हु मै अह्ह्ह्ह्ह आओ न झड़ जाओ न
: अह्ह्ह्ह्ह सच में मेरी जान और जब मैं तेरी गाड़ में अपनी पिचकारी छोड़ता हु तब , तब अच्छा नहीं लगता ( अब्बू की बातें सुनकर मैं चरम पर पहुंच चुका था कि अब्बू अम्मी के गाड़ में झड़ते है । )
: आह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा मै आ रही हू ओह्ह्ह्ह निकल रहा है अह्ह्ह्ह ( अम्मी तेज सिसकिया लेते हुए पैर पटकने लगी जिसकी आहट मुझे साफ साफ दरवाजे के पास खड़े होकर सुनाई दे रही थी )
और मेरी भी वही खड़े खड़े पिचकारी छूटने लगी ।


मन की हवस शांत हो गई थी मगर
आने वाली सुबह को लेकर मै बेचैन था । अलीना के चंद सवाल मुझ पर भारी हो रहे थे जो उसने सोने से पहले मेरे जहन में छोड़े हुए थे ।
क्या ही जवाब दूंगा मैं उसको ?
क्या बताऊंगा मै उसको ?
कैसे समझाऊंगा उसको अपने और सिराज की अम्मी के रिश्ते के बारे में ?

सिराज की अम्मी जो रूप उस रात मैने देखा था मैने कभी नहीं सोचा था इतनी मजहबी और खुद को पर्दे में रखने वाली खातून के जज्बात इस तरह से निराले होंगे ।

इधर सिराज नशे में चूर था और मैं बड़ी मुश्किल से उसको संभाल पा रहा था।
कम से कम 5 से 6 बार मुझे आवाज देनी पड़ी तब उसकी अम्मी ने दरवाजा खोला और करीब 48 साल की महिला , जिसके भारी भरकम देह पर बड़ी सी चादर डली हुई थी , सिराज की अम्मी ने पूरी कोशिश की थी सामने वाले को भनक न लगे कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है , मगर जल्द ही वो भी समझ गई कि मेरी नजरो ने उनके ऊपरी हिस्से का सिटी स्कैन कर ही लिया है ।
असहज होकर वो इधर उधर देखने लगी : अरे शानू बेटा इतनी रात गए , 1 बजने को हो रहे थे और तुम सब तो कल आने वाले थे न ।
: हा अम्मी लेकिन इसने कुछ ज्यादा ही पी ली और घर जाना घर जाना की जिद पकड़ ली ( सिराज को बाहों में संभालते हुए मैने कहा )
: अह्ह्ह्ह्ह अम्मी हेल्प करिए न , नहीं तो गिर जायेगा ये ( अब मै और उसको सहारा नहीं दे पा रहा था , पूरा बदन दुख रहा था )
सिराज की अम्मी ने उसको थामा और गैलरी में ले गई, मै दरवाजा लगा कर उनके साथ हो लिया
दोनो साइड से हमने सिराज को पकड़ कर आगे बढ़ रहे थे ।
: यहां नही बेटा , कमरे में ले चल वहां अच्छे से सो पाएगा ये
: फिर इस वाले कमरे में ही चलो , वहा दूर तक ले जाना नहीं होगा मुझसे अम्मी ( ना चाहते हुए सिराज की अम्मी को मेरे थके हुए चेहरे को देखकर कर मेरी बात माननी पड़ी और हम दोनो सिराज की अम्मी के कमरे में घुस गए । )

बिस्तर तक आते आते मै एकदम से ठिठक कर खड़ा हो गया और मेरी नजर बिस्तर पर रखे हुए सिराज की अम्मी के कपड़ो थी । ये वही कपड़े थे जो आज शाम को उसकी अम्मी ने पहने थे , मगर उसके साथ साथ उनकी ब्रा और उलझी हुई पैंटी भी थी ।

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सिराज की अम्मी भी अबतक समझ चुकी थी कि मैं पूरी तरह से जान चुका था कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है और वो इससे असहज होने लगी थी ।
: यही सुला देते है बेटा इसे ( उन्होंने उसका हाथ अपने कंधे से हटाते हुए कहा और उसको घुमाने की कोशिश करने लगी । मैने भी ऐसा ही कुछ प्रयास किया ताकि सिराज को पीठ के बल लिटाया जा सके )

मगर मेरे हाथ बहुत बुरी तरह दुख रहे थे और जैसे तैसे वो अपनी अम्मी के कपड़ो पर ही पसर गया , सिराज के अम्मी की पैंटी उसके मुंह के पास ही थी । जिसे हम दोनो देख पा रहे थे और जैसे ही मैने उसकी अम्मी की ओर देखा उनका चादर कंधे से सरका हुआ था जिसे उन्होंने लपेट रखा था और आगे से उनकी पेट और मोटी मोटी छातियों की झलक मिल रही थी ।
जिसे देखते ही मेरा लंड एकदम से फ़नफ़नाने लगा और उन्हें जैसे ही इसका अहसास हुआ वो चादर फिर से कंधे पर फेंकते हुए आगे से खुद को ढक ली ।

: जा बेटा सिराज के कमरे में तू भी आराम कर ले
: और आप ?
: मै भी देख रही हु , अभी कही तो सोना ही पड़ेगा न !! यहां तो इसकी बदबू से मेरा सर घूमने लगा है । सोच रही हु ऊपर कमरे में साफ करके बिस्तर लगा लू
: इतनी रात में आप कहा परेशान होंगी , आप सिराज के कमरे में सो जाइए मै बाहर सोफे पर सो जाऊंगा
: नहीं नहीं वहा मच्छर बहुत है बेटा तू नहीं सो पाएगा , ऐसा कर तू भी मेरे साथ सो जाना।
: जी ठीक है ( मै ये बोल कर कुछ पल चुप रहा )
: तू चल बेटा मैं आती हूँ जरा ( वो नजरे चुराते हुए बोली और मै समझ गया कि वो कपड़े पहने वाली थी )

मै कमरे से बाहर निकल आया मगर दिल को चैन कहा ।
कमरे से निकल कर मै सिराज के कमरे की चल तो दिया मगर चार कदम चल कर धीरे से वापस
वही दरवाजे के पास से झांका तो पूरे बदन में सुरसुरि सी चढ़ने लगी थी।
पेंट में लंड एकदम फड़फड़ाने लगा था उसको भींचते हुए मैने सिसक कर सामने देखा तो सिराज की अम्मी अपने जिस्म से वो चादर उतार चुकी थीं और आलमारी से कपड़े निकाल रही थी ।

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उनकी बड़ी सी गाड़ पूरी दरारों सहित नहीं मेरे आंखो के आगे कमरे की उजली रोशनी में चमक रही थी ।
आगे लटके हुए उनके मोटे भारी भरकम चूचे देख कर मेरे मुंह में लार घुलने लगी थी ।

तभी उन्हें कुछ अहसास हुआ और इससे पहले वो मेरी ओर देखती मै पीछे हो गया , मगर मेरी होशियारी शायद पकड़ी ही गई थी क्योंकि ठीक मेरे पीछे एक एल.ई.डी. बल्ब जल रही थी हाल के जिससे मेरी परछाई कमरे के दरवाजे के पास फर्श पर उभरी हुई थी ।
मै झेप भरी शर्मिंदी के साथ वापस सिराज के कमरे की ओर बढ़ गया कि जरूर उसकी अम्मी ने मेरी परछाई देखी होगी और वो न जाने क्या सोचेगी ।
" क्या वो कमरे में सोने आएंगी भी "
एक डर सा लग रहा था कि न जाने आगे क्या होने वाला , कही उसकी अम्मी ने मुझे घर आने से मना कर दिया तो फिर सिराज को क्या कहूंगा , उससे मेरी दोस्ती खत्म ? न जाने क्या क्या सवाल उभर रहे थे मेरे मन में और तभी कमरे में आहट हुई और मेरी नजर सामने गई ।

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ब्लैक साटिन नाइटी में अपनी मोटी मोटी खरबूजे जैसे चूचीयो को समाए हुए सिराज की अम्मी मेरे सामने थी ।


जारी रहेगी
Shandar kamuk super hot update 🔥 🔥 🔥
 
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Rekha rani

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UPDATE 006


नाइटी

कमज़ोरी ही है मेरी , सैटिन की नाइटी ।
वो मखमली सा अहसास जिसपर हाथ फिराने से एक अलग ही तरह की ठंडी मुलायम तरंग दौड़ती है बदन में दिल की धड़कने बढ़ा जाती है मेरी ।
उस कपड़े में मानो एक अजीब सी मादक गंध सनी होती है , जिसकी खुशबू सासो में बसते ही पैंट में वाइब्रेशन होने लगता है ।

बाइक चलाते हुए पैंट में हाथ डाल कर मैने मोबाइल खोला , अलीना ने एक और sexy सेल्फी भेजी थी । उस तस्वीर के साथ मैसेज भी था ।

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" Lo beta dudh pi lo "


: ले बेटा दूध पी ले
मगर मेरी नजर अम्मी पर थी पहली बार आज वो बिना दुपट्टे के मेरे आगे थे वो भी नाइटी में , उनके बड़े बड़े मोटे दाने के निप्पल नाइटी फाड़ कर आने को बेताब थे । मेरा मुंह कुछ बोलने को खुला मगर मैं वैसे ही ठहर सा गया

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: ले पकड़ न ( मै नजरे हटा कर अम्मी के हाथ से दूध का ग्लास लिया और अम्मी ने लपक कर मेरे बिस्तर से मोबाइल उठा ली )
: अरे क्या हुआ मोबाइल क्यों ( मानो मेरी रूह उठा कर ले जा रही हो अम्मी ऐसा महसूस हुआ , ना जाने कैसा जुड़ाव हो गया था चंद दिनों में मोबाइल से )
: तेरे अब्बू ने खास बोला है कि रात में मोबाइल तेरे पास नहीं होगी ( अम्मी के दिखावटी गुस्से में भी मुझे एक छिपी हुई शरारत की झलक दिखी , मै समझ गया कि अम्मी अब्बू से बाते करेंगी )



फोन पर ..
: ऊहू इतना तड़प रहे थे क्या कि आधी काफी छोड़ कर चले आए मेरे लिए
: mommy ने दूध के लिए बुलाया था तो कैसे नहीं आता ( मैने अलीना को फुसलाया )
: उस ब्लू आइज वाली है कही तुम्हे हिप्नोटाइज तो नहीं न कर दिया ( उसने शक किया)
: तुम्हारे प्यार के जादू के आगे सब धुंधला हो जाता है मेरी जान ( उफ्फ क्या कसा हुआ जोबन है इसका , मोबाइल के आई तस्वीरों में उसके कड़क भूरे निप्पलों को निहारता हुआ मै सिहरा )
: और खबरदार जो उसके शर्ट से झांकते कबूतरों को दाना दिया तो , कामिनी जानबूझ कर चोंच उठाए घूमती है तुम्हारे आगे हूह ( वो पूरी पोजेसिव होकर मुझ पर भड़की )
: मै क्यू उन्हें दाना डालूंगा भला , मेरे पसंदीदा कबूतरों के जोड़े तो तुम्हारे पास है ओह्ह्ह्ह कितने कड़क और तने हुए है ओह्ह्ह्ह जी चाहता है कि
: क्यायाआ? बोलो न क्या मन कर रहा है ? ( अलीना की सांसे बेताब थी मेरे मुंह से लब्ज़ सुनने को , उसके बदन में उठती मदहोशी और वासना की खुमारी में मोबाइल पर महसूस कर सकता था , गर्म सासो की आहट और उसमें छिपी हुई मादक कसमसाहट , मानों वो फोन को मुंह के पास रखे हुए अपने दोनों दूधिया रस भरे चूचियों को मसल रही हो ।
: सच में बोलूं क्या ? ( मैने उसे तड़पाया )
: उम्मम्म बोलो न ( वो पूरे जोश में सिसकती हुई कुनमुनाई)
: पहले ये बताओ इसके साथ जो दिलाया था वो क्यों नहीं पहना ?



: आपने ही बोला था कि इसके साथ दूसरे कपडे पहनने की जरूरत नहीं होती
: तो क्या नीचे भी नही पहनी हो (फोन स्पीकर पर था और अब्बू की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनमना गया )
फरीदा शर्मा कर : धत्त चुप करिए आप , नटखट कही के । सारी शरारत जानती हु मै आपकी
अब्बू : अब मत तरसाओ न , वीडियो कॉल करू
अम्मी : उन्हू वो इसमें कान में लगाने वाला म्यूजिक वाला नही है , आवाज ऊपर तक जाएगी
अम्मी की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनामना गया कि आज रात तो पूरा फुल प्रोग्राम सेट कर रखा है अम्मी और अब्बू ने वीडियो कॉल पर
अब्बू : अच्छा ठीक है इस बार आऊंगा तो वो इयरफोन लेके आऊंगा , फिर तो अपने गदराए जिस्म का दीदार कराओगी न बेगम
अम्मी इतरा कर: उहू बिलकुल भी नही ,
अब्बू : क्या ? पर क्यू ?
अम्मी : नही आप बहुत वो हो , और मुझे शर्म भी आयेगी
अब्बू और अम्मी की बातें सुनकर मेरा लंड और मैं दोनो खुश हुए जा रहे थे


: ऊहू देखो तो मेरी शेरनी को , अब मुझसे ही शर्मा रही है उम्म्म ( मैने उसे चिढ़ाया )
: नहीईई तुम ऐसे मुझे तंग नहीं कर सकते , तुम तुम पहले जैसे रहो न ( अलीना ऐसे उखड़कर बोली जैसे उसने कुछ खो सा दिया मुझमें , मुझे पाने के बाद )
: अच्छा जी कैसे होना चाहिए मुझे फिर ( मै हंसता हुआ उससे सवाल दोहराया )
: जैसे पहले तुम मुझे देख कर डर जाते थे , मेरे करीब आने पर कांपने लग जाते थे । मै छूती थी तुम्हे तो घबरा जाते थे वैसे ही एकदम मासूम और प्यारे से । मुझे तुम्हे छेड़ना परेशान करना पसंद है समझे बुद्धु हूह ( वो अपनी बीती मीठी यादों को जबान से दुहराती हुई तुनकी)
: याद है दुकान के उसे चेंजिंग रूम में जब तुमने मुझे अपनी ओर खींचा था एकदम से मुझे अपने करीब कर लिया था , तुम्हारे वो बड़े बड़े मोटे नुकीले तीर मेरे सीने को चिर रहे थे
: हम्म्म ( अलीना की सांसे फिर से गरमाने लगी )
: तुमने ही कहा था कि मुझसे डरो मत और फिर जब तुम मेरे रूम पर आई थी जहां मैं लेता हु वहां तुम मेरे बाहों में थी चिपकी हुई बिना कपड़ो के , तुम्हारी मखमली जांघें मेरे जांघों के बीच गर्म हो रही थी और तुम मेरे सीने से लिपटी हुई मुझे कसके पकड़े हुए थी , याद है वो पल
: सीईईईई उम्मम्म वो सब मै कैसे भूल सकती हु मेरे राआजाह ( अलीना कसमसाती हुई बोली )
: मै भी नहीं भूल सकता हूं , तुमने मुझे मेरे खामियों और मेरी जिद के साथ मुझे अपनाया था । फिर तुमसे कैसे डरना , डरता था कही तुम मुझसे नफरत न कर बैठो मेरे अतीत मेरे फैंटेसी को जानने के बाद , बस इसीलिए कतराता था ।
: धत्त बुद्धू , तुम इतने प्यारे हो तुमसे नफरत कैसी और mommy अपने बेटू से कभी नाराज नहीं होती समझे हिहीही ( वो प्यार से मुझे समझाते हुए एकदम से चुलबुली सी हो गई )

: mommy
: यस्स माय बेबी ( अलीना ने बड़े लुभावने स्वर में जवाब दिया )
: I wanna see you your booby mommy ... वीडियो कॉल करो ( मै पूरे कामोत्तेजना में डूबता हुआ अपने पैर आपस में रगड़ता हुआ बोला )




: धत्त नहीइइ मै वीडियो बना कर भेज दूंगी आपको , ऐसे मुझे शर्म आएगी ( अम्मी लगभग शरमाते हुए लहजे में बोली )
: तो कुछ तस्वीरें भी भेजना मेरी जान अपने बड़े फैले हुए चूतड़ों के । उन्हें याद करता हूं तो लंड मचल उठता है मेरा ( स्पीकर पर अब्बू की बातें सुन कर मेरे आंखो में अम्मी के बड़े फैले हुए चौड़े चूतड बस से गए और लंड लोवर में अकड़ सा गया ।
: धत्त गंदे , आपको तो बस बड़ी बड़ी हिलती डुलती चीजे ही भाती है , चाहे वो मेरी हो या फिर उस हुह्ह्ह ( अम्मी ने बीच में बात को रोक दिया और मैं उलझ गया कि अब दूसरी कौन है जिसकी बड़ी हिलकोरे खाती गाड़ के अब्बू दीवाने है )
: हा मेरी जान लेकिन तुम्हारी मोटे मोटे चूतड़ों की कसी दरारों को फैलाकर कर पेलने में जो मजा आता है अह्ह्ह्ह सीईईईईई मेरी जान देखो न मेरा लंड तुम्हारे बड़े बड़े मटके जैसे चूतड़ों को याद कर लार छोड़ रहा है आओ न चाट लो सीईईईई ओह्ह्ह्ह
: अब बस भी करिए शानू के अब्बू मुझसे रहा नही जायेगा । आप दूर से मुझे तंग कर खुद को शांत कर लेते है और मुझे आपकी यादों में तड़पना पड़ता है सीईईईई अह्ह्ह्ह ( अम्मी सिसकिया लेने लगी )
: मेरी यादों में तड़पती हो या मेरे इस फौलादी लंड के जो तुम्हारी लंबी बुर के फांके चीरता हुआ तुम्हे सुकून देता है ( अब्बू की बातों से मेरी हालत खस्ता हुई जा रही थी और अम्मी की सिसकिया और कमरे से आती मादक कुनमुनाहट से साफ पता चल रहा था कि अम्मी बिस्तर पर मचल रही है । )
: ओह्ह्ह मेरे सरताज अह्ह्ह्ह्ह मेरे साजन ओह्ह्ह उसे याद करती हू तो मेरी सलवार गीली हो जाती है सीईईईई आजाओ न जल्दी से , कब तक मुझे ऐसे तड़पाओगे मेरे राजा ओह्ह्ह्ह
: तुम कहो तो कल ही आ ज़ाऊ तुम्हारे पास



: ओह्ह्ह यस्स बेटू कम टू योर हॉर्नी मम्मा उम्मम
: उम्मम माय सेक्सी mommy कल आऊंगा तो दूधू पिलाओगी न

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: हा बेटू क्यू नहीं , mommy का दूधू बेटू के लिए ही है मेरा बच्चा अह्ह्ह्ह अब चूस लो न इसे ओह्ह्ह्ह यस्स ऐसे ही पी लो मेरा बच्चा ( अलीना ने वीडियो कॉल पर अपने गोरे गोरे चूचे दिखाते हुए उन्हें मस्ती में मसलने लगी और मैं भी अपना लंड बाहर निकाल कर उन्हें देख कर हिलाने लगा )
: ओह्ह्ह mommy आपके बूब्स बहुत जूसी है उम्म्म सो टेस्टी उम्मम्म सीईईईई आई लव टू सक योर बूबी उम्मम्म आह्ह्ह ( मै अपनी मोबाइल स्क्रीन पर दिखते अलीना के निप्पल को जीभ से चाटने लगा और अलीना पागल होकर अपने पैर पटकने लगी )
: ओह्ह्ह यस्स बेबी सक इट उम्मम सक इट ओह्ह्ह्ह गॉड माय सेक्सी बेटू सक योर मम्मा बूबी ओह्ह्ह्ह यस्स अह्ह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह शानू मेरा आयेगा ओह्ह्ह्ह डाल दो न अंदर
: कहा डाल दु मेरी जान



: अपनी फरीदा की बुर में मेरे राजा , फाड़ो न मेरी चूत को अओहह्ह घुसा दो अपना मोटा बड़ा लंड ओह्ह्ह्ह मेरे राजा ( अम्मी सिसकियां लेती हुई तड़पती हुई बोली )
: लो मेरी जान अह्ह्ह्ह घुसा दिया ओह्ह्ह कितनी गरम और मुलायम चूत है तेरी अह्ह्ह्ह्ह कितना तप रहा है ( अब्बू की बातें सुनकर मैं भी अपना लंड मुठियाता हुआ अम्मी की चूत की गर्मी को महसूस करने लगा )
: है न मेरे राजा , आना इस बार पूरा लंड पिघला लूंगी अपनी बुर ओह्ह्ह्ह शानू के अब्बू अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा अह्ह्ह्ह्ह चोदो मुझे अह्ह्ह्ह्ह कस कस के चाहिए मुझे अह्ह्ह्ह
: हा मेरी जान लेहह्हा अह्ह्ह्ह हचक हचक कर तेरे ऊपर चढ़ कर पेल रहा हु तेरी बुर में ओह्ह्ह्ह कितनी रसीली है इसे और भी रसीली कर दु क्या मेरी जान
: हा मेरे राजा कर दो न , भर दो मेरी चूत को अपने गर्म रस से अह्ह्ह्ह जब आपके रस से मेरी रस मिलती है तो उसे अपने बुर पर मलने में मुझे मजा आता है आह्ह्ह्ह मेरे राजा झड़ने वाली हु मै अह्ह्ह्ह्ह आओ न झड़ जाओ न
: अह्ह्ह्ह्ह सच में मेरी जान और जब मैं तेरी गाड़ में अपनी पिचकारी छोड़ता हु तब , तब अच्छा नहीं लगता ( अब्बू की बातें सुनकर मैं चरम पर पहुंच चुका था कि अब्बू अम्मी के गाड़ में झड़ते है । )
: आह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा मै आ रही हू ओह्ह्ह्ह निकल रहा है अह्ह्ह्ह ( अम्मी तेज सिसकिया लेते हुए पैर पटकने लगी जिसकी आहट मुझे साफ साफ दरवाजे के पास खड़े होकर सुनाई दे रही थी )
और मेरी भी वही खड़े खड़े पिचकारी छूटने लगी ।


मन की हवस शांत हो गई थी मगर
आने वाली सुबह को लेकर मै बेचैन था । अलीना के चंद सवाल मुझ पर भारी हो रहे थे जो उसने सोने से पहले मेरे जहन में छोड़े हुए थे ।
क्या ही जवाब दूंगा मैं उसको ?
क्या बताऊंगा मै उसको ?
कैसे समझाऊंगा उसको अपने और सिराज की अम्मी के रिश्ते के बारे में ?

सिराज की अम्मी जो रूप उस रात मैने देखा था मैने कभी नहीं सोचा था इतनी मजहबी और खुद को पर्दे में रखने वाली खातून के जज्बात इस तरह से निराले होंगे ।

इधर सिराज नशे में चूर था और मैं बड़ी मुश्किल से उसको संभाल पा रहा था।
कम से कम 5 से 6 बार मुझे आवाज देनी पड़ी तब उसकी अम्मी ने दरवाजा खोला और करीब 48 साल की महिला , जिसके भारी भरकम देह पर बड़ी सी चादर डली हुई थी , सिराज की अम्मी ने पूरी कोशिश की थी सामने वाले को भनक न लगे कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है , मगर जल्द ही वो भी समझ गई कि मेरी नजरो ने उनके ऊपरी हिस्से का सिटी स्कैन कर ही लिया है ।
असहज होकर वो इधर उधर देखने लगी : अरे शानू बेटा इतनी रात गए , 1 बजने को हो रहे थे और तुम सब तो कल आने वाले थे न ।
: हा अम्मी लेकिन इसने कुछ ज्यादा ही पी ली और घर जाना घर जाना की जिद पकड़ ली ( सिराज को बाहों में संभालते हुए मैने कहा )
: अह्ह्ह्ह्ह अम्मी हेल्प करिए न , नहीं तो गिर जायेगा ये ( अब मै और उसको सहारा नहीं दे पा रहा था , पूरा बदन दुख रहा था )
सिराज की अम्मी ने उसको थामा और गैलरी में ले गई, मै दरवाजा लगा कर उनके साथ हो लिया
दोनो साइड से हमने सिराज को पकड़ कर आगे बढ़ रहे थे ।
: यहां नही बेटा , कमरे में ले चल वहां अच्छे से सो पाएगा ये
: फिर इस वाले कमरे में ही चलो , वहा दूर तक ले जाना नहीं होगा मुझसे अम्मी ( ना चाहते हुए सिराज की अम्मी को मेरे थके हुए चेहरे को देखकर कर मेरी बात माननी पड़ी और हम दोनो सिराज की अम्मी के कमरे में घुस गए । )

बिस्तर तक आते आते मै एकदम से ठिठक कर खड़ा हो गया और मेरी नजर बिस्तर पर रखे हुए सिराज की अम्मी के कपड़ो थी । ये वही कपड़े थे जो आज शाम को उसकी अम्मी ने पहने थे , मगर उसके साथ साथ उनकी ब्रा और उलझी हुई पैंटी भी थी ।

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सिराज की अम्मी भी अबतक समझ चुकी थी कि मैं पूरी तरह से जान चुका था कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है और वो इससे असहज होने लगी थी ।
: यही सुला देते है बेटा इसे ( उन्होंने उसका हाथ अपने कंधे से हटाते हुए कहा और उसको घुमाने की कोशिश करने लगी । मैने भी ऐसा ही कुछ प्रयास किया ताकि सिराज को पीठ के बल लिटाया जा सके )

मगर मेरे हाथ बहुत बुरी तरह दुख रहे थे और जैसे तैसे वो अपनी अम्मी के कपड़ो पर ही पसर गया , सिराज के अम्मी की पैंटी उसके मुंह के पास ही थी । जिसे हम दोनो देख पा रहे थे और जैसे ही मैने उसकी अम्मी की ओर देखा उनका चादर कंधे से सरका हुआ था जिसे उन्होंने लपेट रखा था और आगे से उनकी पेट और मोटी मोटी छातियों की झलक मिल रही थी ।
जिसे देखते ही मेरा लंड एकदम से फ़नफ़नाने लगा और उन्हें जैसे ही इसका अहसास हुआ वो चादर फिर से कंधे पर फेंकते हुए आगे से खुद को ढक ली ।

: जा बेटा सिराज के कमरे में तू भी आराम कर ले
: और आप ?
: मै भी देख रही हु , अभी कही तो सोना ही पड़ेगा न !! यहां तो इसकी बदबू से मेरा सर घूमने लगा है । सोच रही हु ऊपर कमरे में साफ करके बिस्तर लगा लू
: इतनी रात में आप कहा परेशान होंगी , आप सिराज के कमरे में सो जाइए मै बाहर सोफे पर सो जाऊंगा
: नहीं नहीं वहा मच्छर बहुत है बेटा तू नहीं सो पाएगा , ऐसा कर तू भी मेरे साथ सो जाना।
: जी ठीक है ( मै ये बोल कर कुछ पल चुप रहा )
: तू चल बेटा मैं आती हूँ जरा ( वो नजरे चुराते हुए बोली और मै समझ गया कि वो कपड़े पहने वाली थी )

मै कमरे से बाहर निकल आया मगर दिल को चैन कहा ।
कमरे से निकल कर मै सिराज के कमरे की चल तो दिया मगर चार कदम चल कर धीरे से वापस
वही दरवाजे के पास से झांका तो पूरे बदन में सुरसुरि सी चढ़ने लगी थी।
पेंट में लंड एकदम फड़फड़ाने लगा था उसको भींचते हुए मैने सिसक कर सामने देखा तो सिराज की अम्मी अपने जिस्म से वो चादर उतार चुकी थीं और आलमारी से कपड़े निकाल रही थी ।

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उनकी बड़ी सी गाड़ पूरी दरारों सहित नहीं मेरे आंखो के आगे कमरे की उजली रोशनी में चमक रही थी ।
आगे लटके हुए उनके मोटे भारी भरकम चूचे देख कर मेरे मुंह में लार घुलने लगी थी ।

तभी उन्हें कुछ अहसास हुआ और इससे पहले वो मेरी ओर देखती मै पीछे हो गया , मगर मेरी होशियारी शायद पकड़ी ही गई थी क्योंकि ठीक मेरे पीछे एक एल.ई.डी. बल्ब जल रही थी हाल के जिससे मेरी परछाई कमरे के दरवाजे के पास फर्श पर उभरी हुई थी ।
मै झेप भरी शर्मिंदी के साथ वापस सिराज के कमरे की ओर बढ़ गया कि जरूर उसकी अम्मी ने मेरी परछाई देखी होगी और वो न जाने क्या सोचेगी ।
" क्या वो कमरे में सोने आएंगी भी "
एक डर सा लग रहा था कि न जाने आगे क्या होने वाला , कही उसकी अम्मी ने मुझे घर आने से मना कर दिया तो फिर सिराज को क्या कहूंगा , उससे मेरी दोस्ती खत्म ? न जाने क्या क्या सवाल उभर रहे थे मेरे मन में और तभी कमरे में आहट हुई और मेरी नजर सामने गई ।

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ब्लैक साटिन नाइटी में अपनी मोटी मोटी खरबूजे जैसे चूचीयो को समाए हुए सिराज की अम्मी मेरे सामने थी ।


जारी रहेगी
Awesome update super hot n erotic
 
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UPDATE 006


नाइटी

कमज़ोरी ही है मेरी , सैटिन की नाइटी ।
वो मखमली सा अहसास जिसपर हाथ फिराने से एक अलग ही तरह की ठंडी मुलायम तरंग दौड़ती है बदन में दिल की धड़कने बढ़ा जाती है मेरी ।
उस कपड़े में मानो एक अजीब सी मादक गंध सनी होती है , जिसकी खुशबू सासो में बसते ही पैंट में वाइब्रेशन होने लगता है ।

बाइक चलाते हुए पैंट में हाथ डाल कर मैने मोबाइल खोला , अलीना ने एक और sexy सेल्फी भेजी थी । उस तस्वीर के साथ मैसेज भी था ।

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" Lo beta dudh pi lo "


: ले बेटा दूध पी ले
मगर मेरी नजर अम्मी पर थी पहली बार आज वो बिना दुपट्टे के मेरे आगे थे वो भी नाइटी में , उनके बड़े बड़े मोटे दाने के निप्पल नाइटी फाड़ कर आने को बेताब थे । मेरा मुंह कुछ बोलने को खुला मगर मैं वैसे ही ठहर सा गया

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: ले पकड़ न ( मै नजरे हटा कर अम्मी के हाथ से दूध का ग्लास लिया और अम्मी ने लपक कर मेरे बिस्तर से मोबाइल उठा ली )
: अरे क्या हुआ मोबाइल क्यों ( मानो मेरी रूह उठा कर ले जा रही हो अम्मी ऐसा महसूस हुआ , ना जाने कैसा जुड़ाव हो गया था चंद दिनों में मोबाइल से )
: तेरे अब्बू ने खास बोला है कि रात में मोबाइल तेरे पास नहीं होगी ( अम्मी के दिखावटी गुस्से में भी मुझे एक छिपी हुई शरारत की झलक दिखी , मै समझ गया कि अम्मी अब्बू से बाते करेंगी )



फोन पर ..
: ऊहू इतना तड़प रहे थे क्या कि आधी काफी छोड़ कर चले आए मेरे लिए
: mommy ने दूध के लिए बुलाया था तो कैसे नहीं आता ( मैने अलीना को फुसलाया )
: उस ब्लू आइज वाली है कही तुम्हे हिप्नोटाइज तो नहीं न कर दिया ( उसने शक किया)
: तुम्हारे प्यार के जादू के आगे सब धुंधला हो जाता है मेरी जान ( उफ्फ क्या कसा हुआ जोबन है इसका , मोबाइल के आई तस्वीरों में उसके कड़क भूरे निप्पलों को निहारता हुआ मै सिहरा )
: और खबरदार जो उसके शर्ट से झांकते कबूतरों को दाना दिया तो , कामिनी जानबूझ कर चोंच उठाए घूमती है तुम्हारे आगे हूह ( वो पूरी पोजेसिव होकर मुझ पर भड़की )
: मै क्यू उन्हें दाना डालूंगा भला , मेरे पसंदीदा कबूतरों के जोड़े तो तुम्हारे पास है ओह्ह्ह्ह कितने कड़क और तने हुए है ओह्ह्ह्ह जी चाहता है कि
: क्यायाआ? बोलो न क्या मन कर रहा है ? ( अलीना की सांसे बेताब थी मेरे मुंह से लब्ज़ सुनने को , उसके बदन में उठती मदहोशी और वासना की खुमारी में मोबाइल पर महसूस कर सकता था , गर्म सासो की आहट और उसमें छिपी हुई मादक कसमसाहट , मानों वो फोन को मुंह के पास रखे हुए अपने दोनों दूधिया रस भरे चूचियों को मसल रही हो ।
: सच में बोलूं क्या ? ( मैने उसे तड़पाया )
: उम्मम्म बोलो न ( वो पूरे जोश में सिसकती हुई कुनमुनाई)
: पहले ये बताओ इसके साथ जो दिलाया था वो क्यों नहीं पहना ?




: आपने ही बोला था कि इसके साथ दूसरे कपडे पहनने की जरूरत नहीं होती
: तो क्या नीचे भी नही पहनी हो (फोन स्पीकर पर था और अब्बू की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनमना गया )
फरीदा शर्मा कर : धत्त चुप करिए आप , नटखट कही के । सारी शरारत जानती हु मै आपकी
अब्बू : अब मत तरसाओ न , वीडियो कॉल करू
अम्मी : उन्हू वो इसमें कान में लगाने वाला म्यूजिक वाला नही है , आवाज ऊपर तक जाएगी
अम्मी की बात सुन कर मेरा लंड एकदम से तनामना गया कि आज रात तो पूरा फुल प्रोग्राम सेट कर रखा है अम्मी और अब्बू ने वीडियो कॉल पर
अब्बू : अच्छा ठीक है इस बार आऊंगा तो वो इयरफोन लेके आऊंगा , फिर तो अपने गदराए जिस्म का दीदार कराओगी न बेगम
अम्मी इतरा कर: उहू बिलकुल भी नही ,
अब्बू : क्या ? पर क्यू ?
अम्मी : नही आप बहुत वो हो , और मुझे शर्म भी आयेगी
अब्बू और अम्मी की बातें सुनकर मेरा लंड और मैं दोनो खुश हुए जा रहे थे


: ऊहू देखो तो मेरी शेरनी को , अब मुझसे ही शर्मा रही है उम्म्म ( मैने उसे चिढ़ाया )
: नहीईई तुम ऐसे मुझे तंग नहीं कर सकते , तुम तुम पहले जैसे रहो न ( अलीना ऐसे उखड़कर बोली जैसे उसने कुछ खो सा दिया मुझमें , मुझे पाने के बाद )
: अच्छा जी कैसे होना चाहिए मुझे फिर ( मै हंसता हुआ उससे सवाल दोहराया )
: जैसे पहले तुम मुझे देख कर डर जाते थे , मेरे करीब आने पर कांपने लग जाते थे । मै छूती थी तुम्हे तो घबरा जाते थे वैसे ही एकदम मासूम और प्यारे से । मुझे तुम्हे छेड़ना परेशान करना पसंद है समझे बुद्धु हूह ( वो अपनी बीती मीठी यादों को जबान से दुहराती हुई तुनकी)
: याद है दुकान के उसे चेंजिंग रूम में जब तुमने मुझे अपनी ओर खींचा था एकदम से मुझे अपने करीब कर लिया था , तुम्हारे वो बड़े बड़े मोटे नुकीले तीर मेरे सीने को चिर रहे थे
: हम्म्म ( अलीना की सांसे फिर से गरमाने लगी )
: तुमने ही कहा था कि मुझसे डरो मत और फिर जब तुम मेरे रूम पर आई थी जहां मैं लेता हु वहां तुम मेरे बाहों में थी चिपकी हुई बिना कपड़ो के , तुम्हारी मखमली जांघें मेरे जांघों के बीच गर्म हो रही थी और तुम मेरे सीने से लिपटी हुई मुझे कसके पकड़े हुए थी , याद है वो पल
: सीईईईई उम्मम्म वो सब मै कैसे भूल सकती हु मेरे राआजाह ( अलीना कसमसाती हुई बोली )
: मै भी नहीं भूल सकता हूं , तुमने मुझे मेरे खामियों और मेरी जिद के साथ मुझे अपनाया था । फिर तुमसे कैसे डरना , डरता था कही तुम मुझसे नफरत न कर बैठो मेरे अतीत मेरे फैंटेसी को जानने के बाद , बस इसीलिए कतराता था ।
: धत्त बुद्धू , तुम इतने प्यारे हो तुमसे नफरत कैसी और mommy अपने बेटू से कभी नाराज नहीं होती समझे हिहीही ( वो प्यार से मुझे समझाते हुए एकदम से चुलबुली सी हो गई )

: mommy
: यस्स माय बेबी ( अलीना ने बड़े लुभावने स्वर में जवाब दिया )
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: धत्त नहीइइ मै वीडियो बना कर भेज दूंगी आपको , ऐसे मुझे शर्म आएगी ( अम्मी लगभग शरमाते हुए लहजे में बोली )
: तो कुछ तस्वीरें भी भेजना मेरी जान अपने बड़े फैले हुए चूतड़ों के । उन्हें याद करता हूं तो लंड मचल उठता है मेरा ( स्पीकर पर अब्बू की बातें सुन कर मेरे आंखो में अम्मी के बड़े फैले हुए चौड़े चूतड बस से गए और लंड लोवर में अकड़ सा गया ।
: धत्त गंदे , आपको तो बस बड़ी बड़ी हिलती डुलती चीजे ही भाती है , चाहे वो मेरी हो या फिर उस हुह्ह्ह ( अम्मी ने बीच में बात को रोक दिया और मैं उलझ गया कि अब दूसरी कौन है जिसकी बड़ी हिलकोरे खाती गाड़ के अब्बू दीवाने है )
: हा मेरी जान लेकिन तुम्हारी मोटे मोटे चूतड़ों की कसी दरारों को फैलाकर कर पेलने में जो मजा आता है अह्ह्ह्ह सीईईईईई मेरी जान देखो न मेरा लंड तुम्हारे बड़े बड़े मटके जैसे चूतड़ों को याद कर लार छोड़ रहा है आओ न चाट लो सीईईईई ओह्ह्ह्ह
: अब बस भी करिए शानू के अब्बू मुझसे रहा नही जायेगा । आप दूर से मुझे तंग कर खुद को शांत कर लेते है और मुझे आपकी यादों में तड़पना पड़ता है सीईईईई अह्ह्ह्ह ( अम्मी सिसकिया लेने लगी )
: मेरी यादों में तड़पती हो या मेरे इस फौलादी लंड के जो तुम्हारी लंबी बुर के फांके चीरता हुआ तुम्हे सुकून देता है ( अब्बू की बातों से मेरी हालत खस्ता हुई जा रही थी और अम्मी की सिसकिया और कमरे से आती मादक कुनमुनाहट से साफ पता चल रहा था कि अम्मी बिस्तर पर मचल रही है । )
: ओह्ह्ह मेरे सरताज अह्ह्ह्ह्ह मेरे साजन ओह्ह्ह उसे याद करती हू तो मेरी सलवार गीली हो जाती है सीईईईई आजाओ न जल्दी से , कब तक मुझे ऐसे तड़पाओगे मेरे राजा ओह्ह्ह्ह
: तुम कहो तो कल ही आ ज़ाऊ तुम्हारे पास




: ओह्ह्ह यस्स बेटू कम टू योर हॉर्नी मम्मा उम्मम
: उम्मम माय सेक्सी mommy कल आऊंगा तो दूधू पिलाओगी न

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: हा बेटू क्यू नहीं , mommy का दूधू बेटू के लिए ही है मेरा बच्चा अह्ह्ह्ह अब चूस लो न इसे ओह्ह्ह्ह यस्स ऐसे ही पी लो मेरा बच्चा ( अलीना ने वीडियो कॉल पर अपने गोरे गोरे चूचे दिखाते हुए उन्हें मस्ती में मसलने लगी और मैं भी अपना लंड बाहर निकाल कर उन्हें देख कर हिलाने लगा )
: ओह्ह्ह mommy आपके बूब्स बहुत जूसी है उम्म्म सो टेस्टी उम्मम्म सीईईईई आई लव टू सक योर बूबी उम्मम्म आह्ह्ह ( मै अपनी मोबाइल स्क्रीन पर दिखते अलीना के निप्पल को जीभ से चाटने लगा और अलीना पागल होकर अपने पैर पटकने लगी )
: ओह्ह्ह यस्स बेबी सक इट उम्मम सक इट ओह्ह्ह्ह गॉड माय सेक्सी बेटू सक योर मम्मा बूबी ओह्ह्ह्ह यस्स अह्ह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह शानू मेरा आयेगा ओह्ह्ह्ह डाल दो न अंदर
: कहा डाल दु मेरी जान



: अपनी फरीदा की बुर में मेरे राजा , फाड़ो न मेरी चूत को अओहह्ह घुसा दो अपना मोटा बड़ा लंड ओह्ह्ह्ह मेरे राजा ( अम्मी सिसकियां लेती हुई तड़पती हुई बोली )
: लो मेरी जान अह्ह्ह्ह घुसा दिया ओह्ह्ह कितनी गरम और मुलायम चूत है तेरी अह्ह्ह्ह्ह कितना तप रहा है ( अब्बू की बातें सुनकर मैं भी अपना लंड मुठियाता हुआ अम्मी की चूत की गर्मी को महसूस करने लगा )
: है न मेरे राजा , आना इस बार पूरा लंड पिघला लूंगी अपनी बुर ओह्ह्ह्ह शानू के अब्बू अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा अह्ह्ह्ह्ह चोदो मुझे अह्ह्ह्ह्ह कस कस के चाहिए मुझे अह्ह्ह्ह
: हा मेरी जान लेहह्हा अह्ह्ह्ह हचक हचक कर तेरे ऊपर चढ़ कर पेल रहा हु तेरी बुर में ओह्ह्ह्ह कितनी रसीली है इसे और भी रसीली कर दु क्या मेरी जान
: हा मेरे राजा कर दो न , भर दो मेरी चूत को अपने गर्म रस से अह्ह्ह्ह जब आपके रस से मेरी रस मिलती है तो उसे अपने बुर पर मलने में मुझे मजा आता है आह्ह्ह्ह मेरे राजा झड़ने वाली हु मै अह्ह्ह्ह्ह आओ न झड़ जाओ न
: अह्ह्ह्ह्ह सच में मेरी जान और जब मैं तेरी गाड़ में अपनी पिचकारी छोड़ता हु तब , तब अच्छा नहीं लगता ( अब्बू की बातें सुनकर मैं चरम पर पहुंच चुका था कि अब्बू अम्मी के गाड़ में झड़ते है । )
: आह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह्ह मेरे राजा मै आ रही हू ओह्ह्ह्ह निकल रहा है अह्ह्ह्ह ( अम्मी तेज सिसकिया लेते हुए पैर पटकने लगी जिसकी आहट मुझे साफ साफ दरवाजे के पास खड़े होकर सुनाई दे रही थी )
और मेरी भी वही खड़े खड़े पिचकारी छूटने लगी ।


मन की हवस शांत हो गई थी मगर
आने वाली सुबह को लेकर मै बेचैन था । अलीना के चंद सवाल मुझ पर भारी हो रहे थे जो उसने सोने से पहले मेरे जहन में छोड़े हुए थे ।
क्या ही जवाब दूंगा मैं उसको ?
क्या बताऊंगा मै उसको ?
कैसे समझाऊंगा उसको अपने और सिराज की अम्मी के रिश्ते के बारे में ?

सिराज की अम्मी जो रूप उस रात मैने देखा था मैने कभी नहीं सोचा था इतनी मजहबी और खुद को पर्दे में रखने वाली खातून के जज्बात इस तरह से निराले होंगे ।

इधर सिराज नशे में चूर था और मैं बड़ी मुश्किल से उसको संभाल पा रहा था।
कम से कम 5 से 6 बार मुझे आवाज देनी पड़ी तब उसकी अम्मी ने दरवाजा खोला और करीब 48 साल की महिला , जिसके भारी भरकम देह पर बड़ी सी चादर डली हुई थी , सिराज की अम्मी ने पूरी कोशिश की थी सामने वाले को भनक न लगे कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है , मगर जल्द ही वो भी समझ गई कि मेरी नजरो ने उनके ऊपरी हिस्से का सिटी स्कैन कर ही लिया है ।
असहज होकर वो इधर उधर देखने लगी : अरे शानू बेटा इतनी रात गए , 1 बजने को हो रहे थे और तुम सब तो कल आने वाले थे न ।
: हा अम्मी लेकिन इसने कुछ ज्यादा ही पी ली और घर जाना घर जाना की जिद पकड़ ली ( सिराज को बाहों में संभालते हुए मैने कहा )
: अह्ह्ह्ह्ह अम्मी हेल्प करिए न , नहीं तो गिर जायेगा ये ( अब मै और उसको सहारा नहीं दे पा रहा था , पूरा बदन दुख रहा था )
सिराज की अम्मी ने उसको थामा और गैलरी में ले गई, मै दरवाजा लगा कर उनके साथ हो लिया
दोनो साइड से हमने सिराज को पकड़ कर आगे बढ़ रहे थे ।
: यहां नही बेटा , कमरे में ले चल वहां अच्छे से सो पाएगा ये
: फिर इस वाले कमरे में ही चलो , वहा दूर तक ले जाना नहीं होगा मुझसे अम्मी ( ना चाहते हुए सिराज की अम्मी को मेरे थके हुए चेहरे को देखकर कर मेरी बात माननी पड़ी और हम दोनो सिराज की अम्मी के कमरे में घुस गए । )

बिस्तर तक आते आते मै एकदम से ठिठक कर खड़ा हो गया और मेरी नजर बिस्तर पर रखे हुए सिराज की अम्मी के कपड़ो थी । ये वही कपड़े थे जो आज शाम को उसकी अम्मी ने पहने थे , मगर उसके साथ साथ उनकी ब्रा और उलझी हुई पैंटी भी थी ।

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सिराज की अम्मी भी अबतक समझ चुकी थी कि मैं पूरी तरह से जान चुका था कि वो चादर के नीचे से पूरी नंगी है और वो इससे असहज होने लगी थी ।
: यही सुला देते है बेटा इसे ( उन्होंने उसका हाथ अपने कंधे से हटाते हुए कहा और उसको घुमाने की कोशिश करने लगी । मैने भी ऐसा ही कुछ प्रयास किया ताकि सिराज को पीठ के बल लिटाया जा सके )

मगर मेरे हाथ बहुत बुरी तरह दुख रहे थे और जैसे तैसे वो अपनी अम्मी के कपड़ो पर ही पसर गया , सिराज के अम्मी की पैंटी उसके मुंह के पास ही थी । जिसे हम दोनो देख पा रहे थे और जैसे ही मैने उसकी अम्मी की ओर देखा उनका चादर कंधे से सरका हुआ था जिसे उन्होंने लपेट रखा था और आगे से उनकी पेट और मोटी मोटी छातियों की झलक मिल रही थी ।
जिसे देखते ही मेरा लंड एकदम से फ़नफ़नाने लगा और उन्हें जैसे ही इसका अहसास हुआ वो चादर फिर से कंधे पर फेंकते हुए आगे से खुद को ढक ली ।

: जा बेटा सिराज के कमरे में तू भी आराम कर ले
: और आप ?
: मै भी देख रही हु , अभी कही तो सोना ही पड़ेगा न !! यहां तो इसकी बदबू से मेरा सर घूमने लगा है । सोच रही हु ऊपर कमरे में साफ करके बिस्तर लगा लू
: इतनी रात में आप कहा परेशान होंगी , आप सिराज के कमरे में सो जाइए मै बाहर सोफे पर सो जाऊंगा
: नहीं नहीं वहा मच्छर बहुत है बेटा तू नहीं सो पाएगा , ऐसा कर तू भी मेरे साथ सो जाना।
: जी ठीक है ( मै ये बोल कर कुछ पल चुप रहा )
: तू चल बेटा मैं आती हूँ जरा ( वो नजरे चुराते हुए बोली और मै समझ गया कि वो कपड़े पहने वाली थी )

मै कमरे से बाहर निकल आया मगर दिल को चैन कहा ।
कमरे से निकल कर मै सिराज के कमरे की चल तो दिया मगर चार कदम चल कर धीरे से वापस
वही दरवाजे के पास से झांका तो पूरे बदन में सुरसुरि सी चढ़ने लगी थी।
पेंट में लंड एकदम फड़फड़ाने लगा था उसको भींचते हुए मैने सिसक कर सामने देखा तो सिराज की अम्मी अपने जिस्म से वो चादर उतार चुकी थीं और आलमारी से कपड़े निकाल रही थी ।

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उनकी बड़ी सी गाड़ पूरी दरारों सहित नहीं मेरे आंखो के आगे कमरे की उजली रोशनी में चमक रही थी ।
आगे लटके हुए उनके मोटे भारी भरकम चूचे देख कर मेरे मुंह में लार घुलने लगी थी ।

तभी उन्हें कुछ अहसास हुआ और इससे पहले वो मेरी ओर देखती मै पीछे हो गया , मगर मेरी होशियारी शायद पकड़ी ही गई थी क्योंकि ठीक मेरे पीछे एक एल.ई.डी. बल्ब जल रही थी हाल के जिससे मेरी परछाई कमरे के दरवाजे के पास फर्श पर उभरी हुई थी ।
मै झेप भरी शर्मिंदी के साथ वापस सिराज के कमरे की ओर बढ़ गया कि जरूर उसकी अम्मी ने मेरी परछाई देखी होगी और वो न जाने क्या सोचेगी ।
" क्या वो कमरे में सोने आएंगी भी "
एक डर सा लग रहा था कि न जाने आगे क्या होने वाला , कही उसकी अम्मी ने मुझे घर आने से मना कर दिया तो फिर सिराज को क्या कहूंगा , उससे मेरी दोस्ती खत्म ? न जाने क्या क्या सवाल उभर रहे थे मेरे मन में और तभी कमरे में आहट हुई और मेरी नजर सामने गई ।

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ब्लैक साटिन नाइटी में अपनी मोटी मोटी खरबूजे जैसे चूचीयो को समाए हुए सिराज की अम्मी मेरे सामने थी ।


जारी रहेगी
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