आँचल के जाने के बाद ससुर ने देखा उसके पैजामे में उसके वीर्य और आँचल के चूतरस का धब्बा लगा हुआ है. उसने जल्दी से एक अख़बार उठाया और उससे अपने पैजामे को ढकते हुए नहाने के लिए बाथरूम जाने लगा. बाथरूम जाते समय उसने देखा रिया और रवि में किसी बात को लेकर बहस हो रही है. कोई और समय होता तो बुड्ढा कान लगाकर सुनता की इनकी बहस क्यूँ हो रही है. लेकिन अभी वो जल्दी में था क्यूंकी धब्बा छुपाने के लिए उसने पैजामे के आगे अख़बार लगाया हुआ था.
बाथरूम में नहाते समय ससुर बहुत खुश था. आख़िरकार आँचल को पटाने में मैं सफल हो ही गया हूँ. कैसे उसने मेरा लंड पकड़ा था और मेरी गोद में बैठकर मेरे लंड पर अपने नितंबों को रगड़कर मेरा पानी निकाल दिया था . ये सब लक्षण बता रहे हैं की अब आँचल मुझसे चुदवाने को बिल्कुल तैयार है. अब मैं आँचल को सिखाऊँगा की चुदाई के मज़े कैसे लिए जाते हैं. ऐसे ख़यालों से खुश होते हुए ससुर ने रगड़ रगड़कर नहाया और फिर सुनील के साथ ऑफिस जाने के लिए तैयार हो गया.
ऑफिस जाने से पहले ससुर ने रिया को गले लगाया और गुडबाय विश की , क्यूंकी शाम को रिया चंडीगढ़ चले जाने वाली थी. रिया ने गले लगकर ससुर को पकड़े रखा , ससुर समझ गया रिया अलग होना नही चाह रही है. उसने रिया के साथ दो रात चुदाई के जमकर मज़े लिए थे और रिया ने भी ससुर के साथ बहुत मज़े किए थे. आज रिया अपने घर जा रही है लेकिन कभी चंडीगढ़ जाने का मौका लगा तो इस जवान छोकरी को फिर से ज़रूर चोदूँगा. ये तो वैसे भी मुझसे बिल्कुल पटी हुई है, गले लगकर भी हट नही रही और चिपक रही है.
सुनील भी रिया के जाने से उदास था , उसने भी रिया को गले लगाकर गुडबाय विश की. फिर वो पापा के साथ ऑफिस चला गया.
आँचल बाथरूम में नहा रही थी. नहाने के बाद वो लिविंग रूम में आई तो देखा रिया रवि से ज़ोर ज़ोर से बहस कर रही है.
आँचल उन दोनों की तरफ देखकर मुस्कुराते हुए बोली,” क्या बहस हो रही है तुम दोनों की ? मुझे भी तो बताओ .”
रवि बोला,” देखिए ना भाभी. रिया ज़िद कर रही है और आज मेरे साथ चंडीगढ़ नही जाना चाहती है. आप समझाइये ना इसे…”
आँचल ने सवालिया निगाहों से रिया को देखा,” क्यूँ रिया ? ऐसा क्यूँ ? रवि चंडीगढ़ से तुम्हें लेने ही तो आया है .”
“ आज मेरी तबीयत ठीक नही है. मैं कार से चंडीगढ़ नही जाना चाहती हूँ. मैं इससे कह तो रही हूँ की कल ट्रेन से आ जाऊँगी लेकिन ये ज़िद कर रहा है की आज ही कार से चलो. तुम समझाओ ना इसे की कल मैं शताब्दी से आ जाऊँगी.” रिया ने आँचल की बाँह पकड़कर उसे अपनी बात समझाई और उससे अपनी साइड लेने को कहा.
अब आँचल को समझ नही आया की वो किसकी साइड ले.
असल में रिया तबीयत का सिर्फ़ बहाना बना रही थी. वो एक एक दो दो दिन करके अपनी वापसी टाल रही थी. उसको रात में ससुर के साथ चुदाई का चस्का लग गया था.
रवि बोला,” देखो भाभी, इसकी कोई तबीयत खराब नही है ये सिर्फ़ फालतू में ज़िद कर रही है. कल ये अकेली कैसे आएगी ?”
“आँचल इसको बोलो मैं अकेली आ सकती हूँ. बल्कि मैंने मम्मी को फोन करके बता भी दिया है की कल शताब्दी से आऊँगी.” रिया ने आँचल के चेहरे को पकड़कर कहा.
रिया की ज़िद देखकर आँचल मान गयी,” रवि तुम आज अकेले ही जाओ और रिया को मेरे पास एक दिन और रहने दो. वैसे भी अगर अभी से तुम उसकी बात नही मानोगे तो शादी के बाद तो बिल्कुल ही नही मानोगे.”
आँचल को अपनी साइड लेती देखकर रिया खुश हो गयी.
“देखो रवि , मेरी बात मान लो और अपनी भाभी की भी. मैं कल ही आऊँगी. और अगर तुम्हें मेरे अकेले आने की इतनी ही चिंता है तो आँचल भी मेरे साथ आ जाएगी. कुछ दिन चंडीगढ़ घूम फिर लेगी. आँचल के लिए भी थोड़ा चेंज हो जाएगा.”
रिया के सुझाव से आँचल को थोड़ा आश्चर्य हुआ. लेकिन रवि खुश हो गया की आँचल भी चंडीगढ़ आएगी. और वो रिया को साथ ले जाने की ज़िद छोड़कर इस बात के लिए तुरंत तैयार हो गया.
“हाँ ये ठीक रहेगा. भाभी को चंडीगढ़ घुमा फिरा देंगे.”
आँचल को थोड़ा आनाकानी करते हुए देखकर रिया बोली,” तुम क्यूँ चिंता करती हो. जीजाजी को मैं मना लूँगी की वो तुम्हें मेरे साथ चंडीगढ़ भेज दें. बस अब ये बात पक्की हो गयी. अब कोई आनाकानी नही. कल आँचल और मैं चंडीगढ़ जा रहे हैं. बस अब कोई बहस नही.”
रिया की बात पर आँचल मुस्कुराने लगी और सोचने लगी, ठीक ही तो है मैं भी चंडीगढ़ घूम आऊँगी.
फिर रवि बोला,” भाभी मुझे कुछ शॉपिंग करनी है. रिया की तो तबीयत ठीक नही है. आप आओगी मेरे साथ ? थोड़ी हेल्प कर दोगी मेरी.”
आँचल बोली,” ठीक है, मैं चलूंगी तुम्हारे साथ.”
“शिट …...”, रिया का मूड ऑफ हो गया, लेकिन तबीयत खराब होने का बहाना तो उसी ने बनाया था इसलिए वो अब कुछ नही कर सकती थी.
“मैं अभी तैयार होकर आती हूँ…..” कहकर आँचल अपने बेडरूम में चली गयी.
थोड़ी देर बाद आँचल तैयार होकर आई तो रवि देखता ही रह गया.
आँचल ने वाइट कॉटन स्लीवलेस शर्ट और वाइट ट्राउज़र्स पहने हुए थे. कपड़े का मैटेरियल सॉफ्ट था इसलिए उसकी लेसी ब्रा दिख रही थी . ट्राउज़र्स के अंदर पैंटी लाइन भी दिख रही थी और ट्राउज़र्स में उसके बड़े नितंबों की मादक शेप दिख रही थी.
रवि ने आँचल को ऊपर से नीचे तक देखा , क्या सेक्सी औरत है यार. वाइट शर्ट और ट्राउज़र्स में क्या फिगर दिख रहा है. दिल कर रहा है अभी यहीं पर पकड़कर इसके नितंबों को मसल डालूं और चोद दूं.
रिया ने भी मॉडर्न लुक में आँचल को देखा और उसे ईर्ष्या हुई. मेरे रवि के साथ ऐसी सेक्सी बन के जा रही है . ये पागल तो आँचल को देखकर अभी से लार टपका रहा है. ओह गॉड ! मैंने तबीयत खराब का बहाना क्यूँ बनाया.
आँचल ने भी रिया की जलन को फील किया , उसके होठों पर मुस्कुराहट आ गयी.
“ बाय रिया. तुम्हारी तबीयत ठीक नही है तुम आराम करो , ओके ?”
फिर रवि को अंगुली से अपने पीछे आने का इशारा करके आँचल लिविंग रूम से बाहर आ गयी.
आँचल कार चला रही थी रवि भी उसके साथ बैठा था. रवि की नज़रें सामने ना होकर कार चलाती हुई आँचल पर ही थी. आँचल की गोरी बाँहें, उसकी कांख और उसके परफ्यूम की खुशबू में रवि मदहोश हो रहा था. उसकी शर्ट के बटन्स के बीच से किसी किसी समय उसकी लेसी ब्रा भी दिख रही थी. रवि का लंड पैंट में तनकर दर्द करने लगा.
आँचल सब समझ रही थी की बेचारा रवि तो उसके रूप के जादू से मर ही गया है. लेकिन उसे अच्छा लग रहा था की ये मेरी तरफ इतना आकर्षित हो रखा है. वो रवि को टीज़ करने के लिए अपनी छाती आगे को धकेल देती जिससे उसकी बड़ी चूचियाँ और तन जाती.
आँचल रवि को साउथ एक्सटेंशन मार्केट ले गयी वहाँ से रवि ने अपने लिए कुछ शर्ट और पैंट ली. आँचल ने अपने लिए कुछ नही खरीदा. शॉप्स के आगे चलते समय रवि जानबूझकर आँचल की बाँहों और बदन को बहाने से टच कर दे रहा था. कभी उसकी बाँह पकड़ लेता, चलो इस शॉप में चलते हैं.
आँचल मुस्कुराती रही , ले ले तू भी मज़े , क्या याद करेगा…...
फिर रवि बोला, “भाभी, रिया के लिए कुछ सेक्सी लिंजरी लेनी है, कोई शॉप बताओ.”
आँचल उसको ख़ान मार्केट में एक लिंजरी शॉप में ले गयी. इंपोर्टेड लिंजरी की वजह से वो थोड़ी महँगी शॉप थी , कस्टमर भी कम ही थे वहाँ.
रवि ने सेल्सगर्ल को रिया की नाप बताई और आइटम्स दिखाने को कहा.
“ बड़े बदमाश हो रवि. अभी शादी भी नही हुई और अभी से रिया की नाप सब मालूम है…..” आँचल ने रवि से चुटकी ली. सेल्सगर्ल भी हंसने लगी. रवि झेंप गया.
सेल्सगर्ल ने बहुत से डिज़ाइन लाकर सामने रख दिए. रवि सभी आइटम्स को खोलकर आँचल को दिखाने लगा, ये ठीक रहेगी या ये वाली.
सेल्सगर्ल के सामने हल्की फुल्की मस्ती चलती रही. रवि अब खुलकर आँचल की बाँह और बदन को टच कर दे रहा था. आँचल ने रवि को नही रोका और मुस्कुरा कर मज़े लेती रही.
रवि लिंजरी के अलग अलग डिज़ाइन्स को आँचल के ऊपर लगाकर देख रहा था, कैसी लगेगी.
आँचल भी रवि की मस्ती समझ रही थी, वो भी खुलकर बताने लगी.
ये वाली कुछ ज़्यादा ही सेक्सी है,………….इस वाली में रिया के बूब्स बड़े लगेंगे, …….ये वाली तो ट्रांसपेरेंट है , इसमें तो रिया के बूब्स साफ दिखेंगे.
रवि ने रिया के लिए लिंजरी के तीन डिज़ाइन पसंद किए. फिर रवि ने आँचल की चूचियों की तरफ इशारा करते हुए , सेल्सगर्ल से रिया के लिए आँचल की जैसी ही ब्रा दिखाने को कहा.
रवि की इस हरकत से आँचल शरमा गयी.
सेल्सगर्ल ने आँचल से कहा, “आप चेंजिंग रूम में आओ , मैं ठीक से देखती हूँ कैसा डिज़ाइन है.”
आँचल सेल्सगर्ल के साथ चेंजिंग रूम चली गयी. सेल्सगर्ल ने बिना दरवाज़ा बंद किए ही आँचल की शर्ट के बटन खोलने शुरू किए.
आँचल को मालूम नही था की रवि भी उनके पीछे वहाँ आ गया है. जैसे ही उसकी नज़र रवि पर पड़ी , उसने रवि को वहाँ से भगा दिया,” तुम क्यूँ आए यहाँ …..” और चेंजिंग रूम का दरवाज़ा बंद कर दिया.