चंडीगढ़ जाने के लिए आँचल और रिया सुबह 7:30 पर न्यू देल्ही रेलवे स्टेशन पहुँच गयीं. कालका शताब्दी एक्सप्रेस 11 am पर चंडीगढ़ पहुँचा देती है. करीब 3:30 घंटे का सफ़र था. ट्रेन में उन दोनों को बिठाकर सुनील वापस चला गया.
थोड़ी देर में ही रिया को नींद आ गयी. आँचल अकेले बैठे हुए बोर हो गयी. सोचने लगी, अभी तो सोकर उठी है, फिर इसे इतनी नींद क्यूँ आ रही है ? लेकिन आँचल को इस बात की भनक भी नही थी की रिया रात में ससुर के साथ रंगरेलियाँ मना रही थी इसलिए उसे अब नींद आ रही थी. लगातार तीन रातों तक रिया ने आँचल के ससुर के साथ चुदाई का आनंद लिया था. ससुर ने चुदाई का इतना मज़ा दिलाया था की रिया उसकी दीवानी हो गयी थी और अपने जवान मंगेतर रवि को भूल ही गयी थी. इसलिए वो अपने घर चंडीगढ़ जाने का प्रोग्राम टालती रही लेकिन आँचल के घर कब तक रहती , जाना तो था ही. ससुर के साथ चुदाई की मीठी यादें लिए वो आज चंडीगढ़ जा रही थी.
आँचल ने देखा ये तो गहरी नींद सो रही है. उसने रिया को रास्ते भर सोने दिया और खुद अकेली बोर होते रही.
जब चंडीगढ़ स्टेशन आने वाला था तो आँचल ने रिया को उठा दिया,” रिया उठ अब. कितना सोएगी. 3 घंटे से ज़्यादा हो गया तुझे सोए हुए.”
रिया ससुर के मीठे सपनो में खोई थी , आँचल के हिलाने से वो एक झटके से उठी.
आँचल बोली,” चंडीगढ़ आने वाला है और तू रास्ते भर सोई रही . रात भर कहाँ थी ?”
रिया ससुर के साथ रात में अपनी चुदाई याद करके झेंप गयी और आँचल को एक मासूम सी स्माइल दे दी. फिर अपने बाल और कपड़े ठीक करने लगी.
चंडीगढ़ स्टेशन पर रिया के मम्मी पापा उन्हें लेने आए थे. कार में बैठकर वो सब रिया के घर पहुँच गये.
फ्रेश होने के बाद रिया और आँचल लंच करने आ गयीं.लंच करते समय रिया की मम्मी कविता पांडे ने रिया की शादी की तैयारियों की बात छेड़ दी. शादी को अभी तीन महीने बचे थे. क्या क्या तैयारियाँ हो चुकी हैं और क्या काम बाकी हैं ये सब बातें हुई. शादी के लिए गहने बनवा लिए थे और कपड़ों की खरीददारी भी हो चुकी थी. फिर फैशन की चर्चा चली.
कविता कहने लगी,” आँचल , चंडीगढ़ में तो तुम्हारी देल्ही से भी ज़्यादा फैशन है. पंजाबन सरदारनियों ने माहौल खराब कर रखा है. ऐसे ऐसे छोटे कपड़े पहनती हैं की पूछो मत.”
आँचल मुस्कुराने लगी , चाची दूसरों की बुराई कर रही है, अपनी लड़की का फैशन नही दिखता इसे.
मम्मी की बातों से रिया बोर हो गयी. कविता थोड़ा पुराने ख्यालों की थी. रिया को भी टोका टाकी करती थी पर एकलौती संतान होने से रिया पापा के बहुत मुंह लगी थी वो उसकी सारी डिमांड पूरी करते थे.
बातों के दौरान आँचल ने महसूस किया की रिया शादी की तैयारियों की बातचीत में उतना उत्साह नही दिखा रही है जितना कोई भी लड़की दिखाती है. क्या बात , ये उतनी एक्साइटेड नही लग रही शादी को लेकर …… ?
शाम को रवि रिया के घर आने वाला था और रिया और आँचल के साथ बाहर घूमने का प्रोग्राम था.
आँचल ने एक टाइट टीशर्ट और जीन्स पहन ली. रवि ने देखा आँचल की चूचियाँ टीशर्ट को फाड़कर बाहर आने तो बेताब हैं. फिर रवि की कार में तीनो बैठ गये और चंडीगढ़ के नज़ारे देखने निकल पड़े. रवि चंडीगढ़ के बारे में आँचल को बताते रहा और कार में झटके खाने से हिलती उसकी चूचियों को देखते रहा.
थोड़ी देर ऐसे ही घूमने के बाद रवि उनको लोकल क्लब ले गया. रिया उस क्लब में आते रहती थी , उसने आँचल को अपनी फ्रेंड्स से मिलवाया. फिर वो स्विमिंग पूल के पास पड़ी बेंचों में बैठ गये. रिया और आँचल दोनों को मालूम था की रवि बार बार आँचल की चूचियों पर नज़र मार रहा है.
रवि बोला,” भाभी थोड़ी स्विमिंग हो जाए.”
आँचल ने मना कर दिया ,”मुझे स्विमिंग नही आती. तुम लोग एंजाय करो.”
रवि निराश हो गया , साली हाँ बोल देती तो बिकिनी में इसका चिकना बदन तो देखने को मिलता.
फिर रवि रिया के साथ क्लब के लॉकर रूम में चला गया और वहाँ से ड्रेस चेंज करके रवि और रिया पूल में तैरने लगे.
आँचल बेंच में अकेली बैठी उन दोनों को और लोगों के साथ तैरते और मौज़ करते देखने लगी. रवि कितना हैंडसम दिखता है. लंबा चौड़ा , गठीला बदन है. रिया सच ही कहती है वास्तव में रवि अच्छा दिखता है. फिर आँचल की नज़र रवि के नेकर पर पड़ी. इतने लंबे चौड़े आदमी का इतना छोटा सिकुड़ा सा लंड होगा कौन सोच सकता है. बिना मुझे छुए ही इसका पानी निकल गया.
आँचल को रवि बहुत हैंडसम लगता था और वो उसके साथ चुदाई को तैयार थी . बल्कि सुनील भी समझ गया था की आँचल रवि की तरफ थोड़ी आकर्षित है. लेकिन रवि के छोटे लंड का ध्यान आते ही आँचल का मन उखड़ गया, बिल्कुल सुनील जैसा छोटा और पतला है.
थोड़ी देर ऐसे ही सोचते हुए आँचल बोर हो गयी, मुझे भी स्विमिंग आती तो मैं भी इनके साथ मज़े करती. पूल में रवि खुलेआम रिया के साथ मस्ती कर रहा था. आँचल का भी दिल मचलने लगा.
कुछ देर बाद रवि और रिया पूल से बाहर आ गये . लॉकर रूम से ड्रेस चेंज करके वो तीनो क्लब से बाहर आ गये.
अब उन्हें एक फ्रेंड के घर पार्टी में जाना था.
रिया बोली,” आँचल घर में अकेली क्या करेगी, बोर होगी, इसे भी पार्टी में लिए चलते हैं.”
पार्टी में रवि और रिया के फ्रेंड्स से उन्होने आँचल को मिलवाया. पार्टी में जमकर पीना पिलाना चल रहा था. तेज म्यूज़िक में जोड़े डांस कर रहे थे.
रवि , रिया और आँचल के साथ बैठ गया. फिर सबके लिए बियर ले आया. आँचल ने पहले तो मना किया , फिर ज़ोर देने पर बियर ले ली. बियर पीने के बाद रवि रिया के साथ डांस करने लगा. आँचल बियर पीते हुए उन दोनों की मस्ती देखती रही. आज उसकी किस्मत में अकेले बैठना ही लिखा था , सुबह से ही वो बोर हो गयी थी. अपना बियर का गिलास खत्म करके आँचल ने एक और गिलास पी लिया. अब उसका दिमाग़ घूमने लगा, पार्टी में उसको ज़्यादा मज़ा नही आ रहा था, कोई भी उसके पहचान का नही था, सभी अजनबी लोग थे. और जो अपने थे वो उसको अकेला छोड़कर डांस कर रहे थे. आँचल सोचने लगी, काश कोई मेरा भी पार्ट्नर होता तो मैं भी मज़े करती.
फिर उसको पेशाब लग गयी. उसने बाथरूम का पता किया और अंदर चली गयी. जैसे ही उसने दरवाज़ा खोला तो वहाँ एक लंबा चौड़ा सरदार पेशाब कर रहा था. आँचल की नज़र उसके लंड पर पड़ी, ओह माय गॉड, कितना बड़ा लंड है. कुछ पल तक वो वहीं पर खड़ी रह गयी. वो आदमी पेशाब कर चुका था और लंड हिलाकर बची हुई बूँदे निकाल रहा था.
फिर आँचल को होश आया और उसने दरवाज़ा बंद कर दिया,” आई ऍम सॉरी …....” और बाहर आ गयी.
तभी सरदार ने दरवाज़ा खोल दिया और बाहर आ गया.
आँचल की तरफ देखकर मुस्कुराते हुए बोला,” आई ऍम रियली सॉरी मैडम. नाउ यू कैन गो.”
उसके मुस्कुराने से आँचल का चेहरा शरम से लाल हो गया. फिर वो बाथरूम के अंदर आ गयी और दरवाज़ा लॉक कर दिया.
आँचल पेशाब करने के लिए बैठ गयी . लेकिन उसके दिमाग़ में वही दृश्य घूम रहा था. माय गॉड, कितना बड़ा लंड था इसका और बेशरम कहीं का, बिना लॉक किए पेशाब कर रहा था.
आँचल को अपनी पैंटी गीली होती महसूस हुई . उसने वॉश बेसिन में मुँह धोया और अपने मन को शांत करने की कोशिश की. जब उसने थोड़ा ठीक महसूस किया तो वो बाथरूम से बाहर आ गयी.
आँचल ने देखा रवि और रिया साथ में बैठे हुए हैं. आँचल भी रिया के बगल में बैठ गयी. कुछ देर बाद रवि रिया के बदन में हाथ फिराने लगा. आँचल के सामने ही वो रिया के होठों को चूमने लगा. आँचल को कुछ अजीब सा लगा लेकिन वो चुपचाप बैठी रही. रिया की पीठ आँचल की तरफ थी और रवि उसके होठों को चूम रहा था. बीच बीच में आंचल उनकी तरफ नज़रें घुमा लेती. अब वो भी गरम होने लगी. उसने देखा रवि चूम रिया को रहा है पर देख मुझे रहा है. रवि के हाथ रिया की पीठ पर और उसके बालों पर घूम रहे थे. शायद रिया के बहाने वो आँचल की आग भड़काना चाहता था.
आँचल ने रवि से नज़रें हटाकर सामने डांस करते जोड़ों पर टिका दी. वहाँ पर भी अब वही चल रहा था. पीने के बाद अब पार्टी में खुलेआम मस्ती हो रही थी. डांस करते वक़्त कोई अपने पार्ट्नर की चूची दबा रहा था, कोई नितंबों को मसल रहा था कोई चुंबन में मगन था.
अब आँचल के बगल में बैठी रिया सिसकारियाँ लेने लगी थी. रवि टीशर्ट के बाहर से उसकी चूचियाँ दबा रहा था . फिर उसने टीशर्ट के अंदर ही हाथ डाल दिया और ज़ोर ज़ोर से रिया की चूचियाँ मसलने लगा. रिया और ज़ोर से सिसकने लगी. आँचल ने एक नज़र उनकी तरफ देखा , रवि सीधा उसको ही देख रहा था. आँचल की चूत से रस बहने लगा. अब उसने अपनी नज़रें नही फिराई , उसने भी सीधे रवि से आँखें मिलाई.
रवि ने देखा , अब सीधे मुझे ही देख रही है, लगता है साली टीज़िंग बिच को गर्मी चढ़ने लगी है. वो खुश हो गया. देल्ही में मेरी मज़ाक बनाई थी. अब कैसे देख रही है मुझे. जैसे ‘प्लीज़ चोद दो मुझे , कह रही हो’ , नशीली आँखें हो रखी हैं इसकी. अगर कुछ देर के लिए रिया से छुटकारा मिल जाए तो , यहीं किसी बेडरूम में ले जाकर इस गरम सेक्सी कुतिया को जी भरकर चोद डालूँगा और इसका घमंड चूर चूर कर दूँगा. आएगी साली तू मेरे लंड के नीचे. ‘स्टिल ए बॉय ‘ कहा था ना तूने मुझसे.
तभी रवि ने देखा , आँचल ने उससे अपनी नज़रें हटा ली और उसकी आँखें फैलकर और बड़ी हो गयी हैं. रवि ने रिया को चूमना बंद कर दिया और पीछे मुड़कर देखने लगा की आँचल ने ऐसा क्या देख लिया.