• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Romance आरुषि

Mohan575

New Member
72
264
68
भाग 20



" हैलो, कैसे हो आरव अब ? एक्सरसाइज़ करते हो न रोज। दवाई के साथ एक्सरसाइज़ भी बहुत जरुरी है।" आरुषि ने फ़ोन पर आरव से बोला।

" अच्छा हूँ और एक्सरसाइज़ भी रोज करता हूँ, तुमने मम्मी को तो सब बता कर भेजा था। अब वो ताना मारती रहती है कि एक्सरसाइज़ कर ले दवाई ले ले, अब किसी दूसरे की अमानत है तू। तू ठीक नहीं हुआ तो उसे क्या जवाब दूंगी। यह शादी नहीं हो रही यार, अग्नि-परीक्षा ली जा रही है।" आरव गंभीर आवाज में बोला।

" अरे चिल्ल बाबा! मजाक करती है वो, शादी के पहले सबके साथ होता है।" आरुषि ने बोला।

" अच्छा तुम्हें बहुत पता है, ऐसे कितनी शादी कर चुकी हो तुम ?" आरव ने मजाक में बोला।

" अकेली आपकी शादी नहीं हो रही, मेरी भी हो रही है। और आपको नहीं पता कि लड़कों से ज्यादा ख़राब हालात लड़कियों की होती है। लड़का तो सिर्फ दो लोगों के बीच पिसता है, लड़की तो बेचारी दो परिवारों के बीच पिसती जाती है। न यहाँ की रहती है न वहां की। ये शादी के पहले का टाइम होता ही ऐसा है।" आरुषि एक सांस में सब बोलती हुई।

" अरे सांस तो ले ले। यार इतना सब झंझट अभी है तो बाद में क्या होगा। मुझे नहीं करनी शादी-वादी यार। जैसे पहले थे वैसे ही ठीक है।" आरव बोला।

" यार कब तक रह लेंगे वैसे ही, एक न एक दिन तो शादी करनी ही पड़ेगी। क्योंकि यह ही हमारी संस्कृति है। हम दूसरी संस्कृति को मान रहे है इसमें कोई बुराई नहीं है। पर अपनी संस्कृति छोड़ दे यह भी सही नहीं है। और मुझे हमारी संस्कृति ज्यादा पसंद है।" आरुषि गंभीर होती हुई बोली।

" तुम इतनी फिलॉसफर कब से बन गयी। ठीक है, हम शादी कर लेंगे। पर तुम फिलॉसफर मत बनना, मैं नहीं सुन सकता जिंदगी भर भाषण।" आरव ने मजाक में कहा।

" ठीक है फिर भाषण मत सुनना मेरी डांट सुन लेना।"

" नहीं इससे अच्छा भाषण ही है।"


( "अरे भाई, बातें बाद में कर लेना भाभी से। अभी मेडिसिन ले लो, वरना आपके साथ साथ मुझे भी मम्मी की डांट सुनना पड़ेगी। लो आप ये दवाई लो, तब तक भाभीजान से हम बात करते है।" अंशिका बाहर से चिल्लाते हुए अंदर आई।)


" हैलो स्वीटहार्ट, कैसी हो।" अंशिका ने पूछा।

" अच्छी हूँ, तुम बताओ कैसी हो। और तुम्हारे भाई ने वो प्रॉमिस पूरा किया कि नहीं।" आरुषि ने पूछा।

" कौनसा प्रॉमिस भाभी ?" अंशिका ने पूछा।

" अरे वो, फ़ोन और ड्रेस वाला। तुम्हारे भाई के बर्थडे के टाइम जो उन्होंने प्रॉमिस किया था।" आरुषि ने याद दिलाते हुए कहा।

" कहाँ भाभी, बड़े कंजूस है आपके पतिदेव। फ़ोन दिला दिया और ड्रेस के लिए कहा कि शादी के टाइम दिलवाऊंगा। अब शादी भी आ गयी, अब अच्छे से खबर लूंगी।" अंशिका ने कहा।

" हाँ, थोड़े में मत छोड़ना। अच्छे से शॉपिंग करना। उन्हें भी तो पता चलना चाहिए न कि एक ही बहन होने का क्या मतलब होता है।" आरुषि ने कहा।

" अपनी अच्छी पटेगी भाभीजान..! आओ एक बार घर, भाई को मिलकर लूटेंगे।" अंशिका ने हँसते हुए कहा।

" अब मुझे लूटने की प्लानिंग बन गयी हो भाभी ननद की तो बाहर काम सम्भाल लो, वरना थोड़ी देर और लगे रहे तो डाका डालने की प्लानिंग बना लोगे।" आरव ने कहा।

" बड़े उतावले हो रहे हो भाई तुम बात करने को, दिन भर तो लगे रहते हो फ़ोन पर। थोड़ी देर हम क्या बात कर लिए तो देखा नहीं जाता।" अंशिका ने कहा।

" तुम बातें कहाँ कर रही हो, मेरे खिलाफ साज़िश बना रही हो।" आरव ने कहा।

" अच्छा जी, ठीक है फिर। अब बताउंगी मैं साजिश क्या होती है। ये लो आपका फोन, मैं अपने फ़ोन से बात कर लूंगी भाभी से।" अंशिका ने झुंझलाते हुए कहा।

" क्या आप भी आरव, नाराज कर दिया अंशिका को। एक ही तो बहन है आपकी। उसे भी परेशान करते रहते हो।" आरुषि ने कहा।

" अरे मजाक कर रहा था उससे, लेकिन एक बात समझ नहीं आई। शादी मेरी भी हो रही है, यहाँ मुझे तो इम्पोर्टेंस मिल नहीं रही। मेरी फॅमिली से तुम्हें मिल रही है और वहां से तुम मेरी फॅमिली को दे रही हो। मैं बेगानी शादी में अब्दुल्ला दीवाना हुआ सा रह गया।" आरव ने कहा।

" अच्छा, यह बात तो मैं भी कह सकती हूँ फिर। मेरे घर में भी जिसे देखो वो आरव जी आरव जी कर रहा है। मुझे कोई पूछ ही नहीं रहा। मेरे भाई बहन हमेशा तुमसे बात करते रहते है, जीजा जी ये कैसे करना है वो कैसे करना है। दीदी को कोई नहीं पूछ रहा।" आरुषि ने कहा।

" हाँ तो, साले-साली जीजा से मस्ती नहीं करेंगे तो किस से करेंगे।" आरव ने कहा।
" जीजा जी भी सालियों के साथ कोई कम मस्ती नहीं करते। सब पता है मुझे।" आरुषि ने कहा।

" तो यह तो जीजा लोगों का राईट है। अब तुम जीजा-साली के बीच में नहीं आ सकती।" आरव ने कहा।

" मैं कहाँ आ रही हूँ। मैं तो बस बता रही हूँ।" आरुषि ने कहा।

" तब ठीक है। चल अब कॉल रखता हूँ, थोड़ा बाहर जाकर पापा से पूछता हूँ कैसी क्या व्यवस्था करनी है।" आरव ने कहा।

" आप पापा जी से मिल लीजिये और फ़ोन मम्मी को दे दीजिये, मुझे उनसे कुछ बात करनी है।" आरुषि ने कहा।

" ठीक है। मैं देता हूँ।"


( मम्मी, आरुषि को आपसे कुछ बात करनी है। देख लो, क्या बोल रही है वो। आरव ने हॉल से आवाज लगाते हुए कहा।)


" पापा, आप अकेले इतना सिर-दर्द मत लो काम का। तबीयत ख़राब हो जायेगी। परसो हितेन आ रहा है। वो और मैं देख लेंगे काम। कल चाचा जी आ जायेंगे तो आप और वो बस गेस्ट का देख लेना, कैसा क्या करना है।" आरव ने कहा।

" बेटा, तुम आज बड़े हुए हो। हमने पता नहीं कितनी शादियाँ करवा दी। कुछ तबीयत ख़राब नहीं होगी। मैं, तुम्हारे चाचा और हितेन देख लेंगे सब। तुम बस आराम करो और जल्दी से ठीक हो जाओ।" आरव के पापा ने कहा।

" पापा दिन भर आराम ही तो कर रहा हूँ कितने महीनो से। दिल्ली में हितेन काम नहीं करने देता, यहाँ पर आप नहीं करने दे रहे। अकेले बैठा-बैठा बोर हो जाता हूँ। गुस्सा आने लगता है अकेले-अकेले।" आरव ने कहा।

" अकेले कहाँ, आरुषि बेटी है न। उससे बात कर लिया करो।" मि. जैन ने हँसते हुए कहा।

" उससे भी कितनी देर करूँ तो, मुझे नहीं पता। मुझे भी कोई काम बता दो। मैं बैठे-बैठे कर लूंगा। और वैसे भी अब मैं ठीक हो गया।" आरव ने कहा।

" ठीक है, जब होगा तो बता दूंगा। अभी तुम आराम करो। मुझे बाहर जाना है, थोड़ा काम है।" आरव के पापा ने कहा।


" ठीक है।"


Bahut time baad update diya hai bhai
Nice update
Waiting for next
 
  • Like
Reactions: Naina

Rahul

Kingkong
60,514
70,677
354
:reading1:
 
  • Like
Reactions: Naina

Mathur

°◥◣_◢◤°
1,063
3,077
143

Hello, Ladies  & Gentleman, 
We are so glad to Introduce Ultimate Story Contest of this year.

Jaise ki aap sabhi Jante Hain is baar Hum USC contest chala rahe hain aur Kuch Din pahle hi Humne Rules & Queries Thread ka announce kar diya tha aur ab Ultimate Story Contest ka Entry Thread air kar diya hai jo 10th, June 2020, 11:59 PM ko close hoga.

Khair ab main point Par Aate Hain Jaisa ki entry thread aired ho chuka hai isliye aap Sabhi readers aur writers se Meri personally request hai ki is contest mein aap Jarur participate kare aur Apni kalpnao ko shabdon ka rasta dikha ke yaha pesh kare ho sakta hai log use pasand kare.
Aur Jo readers nahi likhna chahte wo bakiyo ki story padhke review de sakte hai mujhe bahut Khushi Hogi agar aap is contest mein participate lekar apni story likhenge to.

Ye aap Sabhi Ke liye ek bahut hi sunhara avsar hai isliye Aage Bade aur apni Kalpanao ko shabdon Mein likhkar Duniya Ko dikha De.

Ye ek short story contest hai jisme Minimum 800 words se maximum 6000 words tak allowed hai itne hi words mein apni story complete Karni Hogi, Aur ek hi post mein complete karna hai aur Entry Thread mein post karna hai.
I hope aap mujhe niraash nahi Karenge aur is contest Mein Jarur participate Lenge.

Rules Check Karne k Liye Ye Thread Use karein :- Rules And Queries Thread

Entry Post Karne k Liye Ye thread Use Karein :- Entry Thread
Reviews Post Karne K liye Ye thread Use karein :- Reviews Thread
On Behalf of Admin Team
Regards :- Xforum Staff..
 
  • Like
Reactions: Ashish Jain
Top