sunoanuj
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Waiting for next update mitrमेरी कहानी को प्यार देने के लिए सबका शुक्रिया अगला अपडेट बस थोडे ही देरमें आएगा ।
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mast update..!!Update 06
पम्मी को उठाके बलबीर उसे उसके कमरे में लेके आया
पम्मी गिर गयी थी घायल हो गयी थी उसे दस मिनिट पहले आयी हुई पेशाब को वो मानो भूल ही गयी थी । क्योंकि ये नई मुसीबत आ गयी थी । उसका जिस्म घायल हो चुका था । उसके पैर में मोच आ गयी थी और बाये हाथ मे फेक्चर हो चुका था । वो दर्द से कहार रही थी । पम्मी के पास में उसके पापा बैठे हुए थे । लगातार वो पम्मी को सांत्वना दे रहे थे । पम्मी दर्द के मारे 10 मिनिट सो गई थी जब वो जागी तब उसे ओर ज्यादा दरद्द हुआ । पेशाब का प्रेशर उससे सहा नही जा रहा था लेकिन वो अपने पापा से बोले भी तो कैसे । माँ भी नही थी जो उसकी । वो ये सब याद करके रोने लगी । बलबीर बोला बेटा क्या हुआ । में अभी डॉक्टर के पास तुजे लेके जाता हूं तुम टेनशन मत लेना ।
पम्मी मनमे सोचने लगी कि वो कैसे बताये अपने पापा को की उसे जोरसे पेशाब लगी है । अब उससे रुका नही जा रहा था । उसने आखिर पापा को वो बात बता ही दी। "पापा वो मुझे...वो मुझे..." करके वो कहार रही थी
"क्या हुआ पम्मी बताओ बेटा" बलबीर चिंतित आवाज में बोला
"पापा वो मुजे न जोरोसे पेशाब लगी है"
"अरे इतनी सी बात पगली तुम्हारी हालत तो देखो" बलबीर बोला
चलो में तुम्हे टॉयलेट की तरफ ले के जाता हूं बोलके पम्मी के कंधो को सहारा देके बलबीर उसे टॉयलेट के दरवाजे के पास लेके आया । ओर वहां बाहर ही खड़ा हो गया ।
पम्मी बोली थेंक्स पापा ओर वो जैसे तैसे करके टॉयलेट में चली गई ।
ओर उसने टॉयलेट में जाकर एक हाथ से अपना नाडा खोल दिया और धीरे धीरे करके अपनी पेंटी को थोड़ा थोड़ा नीचे सरकाया जिससे हुआ ये की पेंटी घुटनो के नीचे जाके एकदम नीचे गिर गयी ।
पम्मी जैसे तैसे करके नीचे बैठ गई और सुकून से पेशाब किया ।
लेकिन उसे क्या पता कि मुसीबतो का पहाड़ तो अभी आने वाला है ।
पेंटी निकालते टाइम उसको इतना ज्यादा जुकना नही पड़ा था । लेकिन पेंटिं पहनने के लिए उसको ओर जुकना था जो कि उसके आपे से बाहर था । उसने बहोत ट्राय की लेकिन जुक नही पाई । उल्टा ज्यादा ज़ुकने से उसका दर्द और बढ़ गया । लेकिन मर्यादा भी कोई चीज़ है ना । उसने जैसे तैसे पेंटी पहन ली
और दरवाजा खोलके पकड़के खड़ी रही । ज़ुकने से उसका दर्द और बढ़ गया था ।
पापा प्लीज़ मुजे पकड़िए । टॉयलेट से थोड़े दूर खड़े बलबीर ने उसे पकड़ लिया । लेकिन वो चलने में सक्षम नही थी अब । उसने बोला पापा मुझसे नही चला जायेगा दर्द और बढ़ गया हे ।
बलबीर बोला कोई बात नही बेटा तेरे पापा है बोलके उसने पम्मी को गोद मे उठा लिया । उसकी मखमली गाँड बलबीर के बलिस्ट बाहु में थी ।
शादी के बाद दो साल तक वो किसीभी मर्द के साथमे ऐसे सिच्युएशन में नही आई थी । न चाहते हुए भी दिलके एक कोने में उसे ठंडक महसूस हुई । वो अपने प्यारे पापा को देख रही थी ।
बलबीरने उसे उसके बेड पे लेके लिटा दिया । ओर बोले बेटा में यहां परही ही हु।
तुम सो जाओ । पम्मी बोली नही पापा आप जाओ सो जाओ मुजे कुछ नही होगा बोलके वो कहार ने लगी । बलबीर बोला बेटा तुम्हे तो ज्यादा दर्द है और रात काफी हो चुकी है डॉक्टर भी नही मिलेगा कल सुबह जल्दी हम हॉस्पिटल जायेगे लेकिन अभी एक काम करता हु तुम्हारे पैरो की थोड़ी मालिश कर देता हूं । पम्मी बोली जी पापा उससे शायद कुछ तकलीफ दूर हो जाये ।
बलबीर दौड़के सरसो का तेल लेके आया । तब तक पम्मी अपना रेशमी नाइट ड्रेस का पायजामा घुटनो तक चढ़ा चुकी थी ।बलबीर आया और उसके कड़क हाथो से होले होले मालिश करने लगा । पम्मी की खूबसूरत गोरे गोर पैरो पे बलबीर का हाथ लगते ही थोड़ा दरद कम हो गया ।
मालिश करते करते पंद्रह मिनिट में पम्मी की आंखे बंध हो चुकी थी । बलबीर ने ये देखा और वो वहां परही बेड के नीचे बैठ गया । और वहां परही सो गया ।
सवेरे पम्मी जागी तो देखा उसके पापा उधर ही बेड़पे मुह रखके सो गए थे । पम्मी के ऑंखसे अपने पापा का इतना प्यार देख आंसू के दो बूंद निकल आये उसके पापा के लिए उसका प्यार और बढ़ गया । बलबीर की आंख खुली उसने जागकर पम्मी को फिर बाथरूम तक लेके गया पम्मी को दर्द उतना ही था बस रातको की हुई मालिश से एक रात आराम मिल गया था । बलबीर भी जल्दी से रेडी हो गया और पम्मी को को लेके ऑर्थोपेडिक सर्जन को दिखा दिया ।
डॉक्टर ने एक्सरे निकाला और पम्मी को दो वीक आराम करने की सलाह दी और बलबीर को थोड़ी दवाइया ओर एक मालिश वाली क्रीम देके बोला इससे रोज एकबार मालिश करना और पेशंट के पासमे ही रहना ।
दोनो घर आ गए । डॉक्टर ने बोला था कि तीन दिन नहाना नही है ओर जहां परभी दर्द है सब जगह मालिश करनी पड़ेगी । पम्मी को लेकर उसके बेड़पे लिटा दिया और अपने हाथों से नास्ता बनाकर पम्मी को खिलाया । पम्मी की नजर में बलबीर के लिए इज़्ज़त ओर बढ़ गयी थी ।
नहाना नही था सो बलबीर बोला में गरम पानी और कॉटन कपड़ा लेके आता हूं । तुम्हे इससे ही थोड़ा पोछ दूंगा तो आराम भी मिलेगा और फिर मालिश करते है । पम्मी बोली थैंक्स पापा आई लव यू। कहकर रोने लगी ओर बलबीर के गले में हाथ लगाकर इमोशनल हो गयी ।
बलबीर बोला बेटा ये तो मेरा फ़र्ज़ है उसमें थेंक्स की क्या बात है । चलो तुम लेटे रहो में बाल्दी में पानी लेके आया । जल्दी से उसने पानी और पोछा ले लिया । पहेले तो उससे पम्मी के पैर और हाथ पूरा साफ कर दिया। और पम्मी के गले मे भी कपड़ा घुमा दिया। गरम कपड़े से पम्मी को थोड़ी राहत मिली। उसके बाद मालिश की क्रीम लेके आया और बोला देखो पम्मी जरा भी शरम मत रखना जहा भी दरद हो बता देना में कोई गेर नही हु तुम्हारा पापा हु ।
जी पापा मुजे पैरो में दर्द है और कमर के हिस्से में भी थोडा है । और थोड़ा सा व्वव्व... कहके अटक गई । बलबीर बोला बताओ बेटा। पम्मी बोली कमर के नीचे भी दर्द हो रहा है पापा । ओर नजर नीची करली । अरे बेटा उसमे कया शर्माना लावो धीरे से मालिश कर देता हूं में ।
SuperbUpdate 06
पम्मी को उठाके बलबीर उसे उसके कमरे में लेके आया
पम्मी गिर गयी थी घायल हो गयी थी उसे दस मिनिट पहले आयी हुई पेशाब को वो मानो भूल ही गयी थी । क्योंकि ये नई मुसीबत आ गयी थी । उसका जिस्म घायल हो चुका था । उसके पैर में मोच आ गयी थी और बाये हाथ मे फेक्चर हो चुका था । वो दर्द से कहार रही थी । पम्मी के पास में उसके पापा बैठे हुए थे । लगातार वो पम्मी को सांत्वना दे रहे थे । पम्मी दर्द के मारे 10 मिनिट सो गई थी जब वो जागी तब उसे ओर ज्यादा दरद्द हुआ । पेशाब का प्रेशर उससे सहा नही जा रहा था लेकिन वो अपने पापा से बोले भी तो कैसे । माँ भी नही थी जो उसकी । वो ये सब याद करके रोने लगी । बलबीर बोला बेटा क्या हुआ । में अभी डॉक्टर के पास तुजे लेके जाता हूं तुम टेनशन मत लेना ।
पम्मी मनमे सोचने लगी कि वो कैसे बताये अपने पापा को की उसे जोरसे पेशाब लगी है । अब उससे रुका नही जा रहा था । उसने आखिर पापा को वो बात बता ही दी। "पापा वो मुझे...वो मुझे..." करके वो कहार रही थी
"क्या हुआ पम्मी बताओ बेटा" बलबीर चिंतित आवाज में बोला
"पापा वो मुजे न जोरोसे पेशाब लगी है"
"अरे इतनी सी बात पगली तुम्हारी हालत तो देखो" बलबीर बोला
चलो में तुम्हे टॉयलेट की तरफ ले के जाता हूं बोलके पम्मी के कंधो को सहारा देके बलबीर उसे टॉयलेट के दरवाजे के पास लेके आया । ओर वहां बाहर ही खड़ा हो गया ।
पम्मी बोली थेंक्स पापा ओर वो जैसे तैसे करके टॉयलेट में चली गई ।
ओर उसने टॉयलेट में जाकर एक हाथ से अपना नाडा खोल दिया और धीरे धीरे करके अपनी पेंटी को थोड़ा थोड़ा नीचे सरकाया जिससे हुआ ये की पेंटी घुटनो के नीचे जाके एकदम नीचे गिर गयी ।
पम्मी जैसे तैसे करके नीचे बैठ गई और सुकून से पेशाब किया ।
लेकिन उसे क्या पता कि मुसीबतो का पहाड़ तो अभी आने वाला है ।
पेंटी निकालते टाइम उसको इतना ज्यादा जुकना नही पड़ा था । लेकिन पेंटिं पहनने के लिए उसको ओर जुकना था जो कि उसके आपे से बाहर था । उसने बहोत ट्राय की लेकिन जुक नही पाई । उल्टा ज्यादा ज़ुकने से उसका दर्द और बढ़ गया । लेकिन मर्यादा भी कोई चीज़ है ना । उसने जैसे तैसे पेंटी पहन ली
और दरवाजा खोलके पकड़के खड़ी रही । ज़ुकने से उसका दर्द और बढ़ गया था ।
पापा प्लीज़ मुजे पकड़िए । टॉयलेट से थोड़े दूर खड़े बलबीर ने उसे पकड़ लिया । लेकिन वो चलने में सक्षम नही थी अब । उसने बोला पापा मुझसे नही चला जायेगा दर्द और बढ़ गया हे ।
बलबीर बोला कोई बात नही बेटा तेरे पापा है बोलके उसने पम्मी को गोद मे उठा लिया । उसकी मखमली गाँड बलबीर के बलिस्ट बाहु में थी ।
शादी के बाद दो साल तक वो किसीभी मर्द के साथमे ऐसे सिच्युएशन में नही आई थी । न चाहते हुए भी दिलके एक कोने में उसे ठंडक महसूस हुई । वो अपने प्यारे पापा को देख रही थी ।
बलबीरने उसे उसके बेड पे लेके लिटा दिया । ओर बोले बेटा में यहां परही ही हु।
तुम सो जाओ । पम्मी बोली नही पापा आप जाओ सो जाओ मुजे कुछ नही होगा बोलके वो कहार ने लगी । बलबीर बोला बेटा तुम्हे तो ज्यादा दर्द है और रात काफी हो चुकी है डॉक्टर भी नही मिलेगा कल सुबह जल्दी हम हॉस्पिटल जायेगे लेकिन अभी एक काम करता हु तुम्हारे पैरो की थोड़ी मालिश कर देता हूं । पम्मी बोली जी पापा उससे शायद कुछ तकलीफ दूर हो जाये ।
बलबीर दौड़के सरसो का तेल लेके आया । तब तक पम्मी अपना रेशमी नाइट ड्रेस का पायजामा घुटनो तक चढ़ा चुकी थी ।बलबीर आया और उसके कड़क हाथो से होले होले मालिश करने लगा । पम्मी की खूबसूरत गोरे गोर पैरो पे बलबीर का हाथ लगते ही थोड़ा दरद कम हो गया ।
मालिश करते करते पंद्रह मिनिट में पम्मी की आंखे बंध हो चुकी थी । बलबीर ने ये देखा और वो वहां परही बेड के नीचे बैठ गया । और वहां परही सो गया ।
सवेरे पम्मी जागी तो देखा उसके पापा उधर ही बेड़पे मुह रखके सो गए थे । पम्मी के ऑंखसे अपने पापा का इतना प्यार देख आंसू के दो बूंद निकल आये उसके पापा के लिए उसका प्यार और बढ़ गया । बलबीर की आंख खुली उसने जागकर पम्मी को फिर बाथरूम तक लेके गया पम्मी को दर्द उतना ही था बस रातको की हुई मालिश से एक रात आराम मिल गया था । बलबीर भी जल्दी से रेडी हो गया और पम्मी को को लेके ऑर्थोपेडिक सर्जन को दिखा दिया ।
डॉक्टर ने एक्सरे निकाला और पम्मी को दो वीक आराम करने की सलाह दी और बलबीर को थोड़ी दवाइया ओर एक मालिश वाली क्रीम देके बोला इससे रोज एकबार मालिश करना और पेशंट के पासमे ही रहना ।
दोनो घर आ गए । डॉक्टर ने बोला था कि तीन दिन नहाना नही है ओर जहां परभी दर्द है सब जगह मालिश करनी पड़ेगी । पम्मी को लेकर उसके बेड़पे लिटा दिया और अपने हाथों से नास्ता बनाकर पम्मी को खिलाया । पम्मी की नजर में बलबीर के लिए इज़्ज़त ओर बढ़ गयी थी ।
नहाना नही था सो बलबीर बोला में गरम पानी और कॉटन कपड़ा लेके आता हूं । तुम्हे इससे ही थोड़ा पोछ दूंगा तो आराम भी मिलेगा और फिर मालिश करते है । पम्मी बोली थैंक्स पापा आई लव यू। कहकर रोने लगी ओर बलबीर के गले में हाथ लगाकर इमोशनल हो गयी ।
बलबीर बोला बेटा ये तो मेरा फ़र्ज़ है उसमें थेंक्स की क्या बात है । चलो तुम लेटे रहो में बाल्दी में पानी लेके आया । जल्दी से उसने पानी और पोछा ले लिया । पहेले तो उससे पम्मी के पैर और हाथ पूरा साफ कर दिया। और पम्मी के गले मे भी कपड़ा घुमा दिया। गरम कपड़े से पम्मी को थोड़ी राहत मिली। उसके बाद मालिश की क्रीम लेके आया और बोला देखो पम्मी जरा भी शरम मत रखना जहा भी दरद हो बता देना में कोई गेर नही हु तुम्हारा पापा हु ।
जी पापा मुजे पैरो में दर्द है और कमर के हिस्से में भी थोडा है । और थोड़ा सा व्वव्व... कहके अटक गई । बलबीर बोला बताओ बेटा। पम्मी बोली कमर के नीचे भी दर्द हो रहा है पापा । ओर नजर नीची करली । अरे बेटा उसमे कया शर्माना लावो धीरे से मालिश कर देता हूं में ।