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अध्याय 17
सुबह सुबह ही जूही मेरे घर में थी ...
“यार कुछ दिन रुक नहीं सकते , इतनी भी जल्दी क्या है काजल से मिलने की ??”
आते ही जूही ने गुस्से में कहा
“अब क्या प्रोब्लम है , शरद का कातिल मिल चूका है “
“हा मुझे पता है लेकिन इससे काजल पर खतरा तो कम नही हो जाता, तुम भी इस चीज को समझ ही गए होगे, पहले तो शरद के मर्डर केस में उसे फसाया गया और अब निकाल दिया गया , दोनों ही चीजे सिर्फ काजल को अपने कैद में रखने के लिए की जा रही है “
मैंने जूही को घुर कर देखा
“आखिर किसी को मेरी बीवी से इतनी क्या चाहत है , उससे किसी को क्या मिलेगा जो वो इतना तामझाम कर रहा है , और यही चीजे मुझे परेशान किये जा रही है ...”
मेरी बात सुनकर जूही मुस्कुराने लगी
“तुम तो पुलिस वाले हो तुम्हे खुद ही पता करना चाहिए “
मैं सोफे से उठा और जूही के कंधे को पकड लिया और उसे अपने साथ उसे सोफे में बिठा दिया ...
मैं जूही के आँखों में ही देख रहा था , वो इससे थोड़ी असहज हो गयी
“क्या ??? ऐसे क्यों देख रहे हो ??”
उसने थोड़ी असहजता से कहा
“जूही तुम मेरी बचपन की दोस्त हो , मेरे लिए तुम बहन के जैसी रही हो लेकिन बहन से ज्यदा भी .. मैं दुनिया में सबसे ज्यादा तुम्हारे उपर ही विस्वास करता हु , सिर्फ तुम्हारे उपर , मुझे काजल से भी ज्यादा भरोसा तुम्हारे उपर रहा है ... सच सच बताओ की मामला आखिर क्या है “
जूही के चहरे में मुस्कान आ गई
उसने बड़े ही प्यार से मेरे गाल पर हाथ फेरा
“मैं जानती हु की मैं तुम्हारे लिए क्या हु , और तुम भी ये चीज अच्छे से जानते हो की तुम मेरे लिए कितनी अहमियत रखते हो ... मैं तुमसे सच सच कहती हु देव की मुझे सच में कुछ भी नहीं पता की आखिर हो क्या रहा है लेकिन जो भी हो रहा है वो थोडा अजीब जरुर है ... मैं तो बस डॉ चुतिया की बात मान रही हु क्योकि वो काजल को बचाने में लगे हुए है , मुझे उनपर भरोसा है देव और काजल को भी है , काजल सुरक्षित है शायद सभी जगह से ज्यादा वो वंहा सुरक्षित है , और तुम ये क्यों भूल जाते हो की मैं ये सब तुम्हारे लिए ही कर रही हु “
मैंने हामी में सर हिलाया
“जानता हु जूही ... तो क्या चले “
जूही मेरी बात पर हँस पड़ी
“तुम नहीं मानोगे, चलो , तुम्हारे कारण मुझे ज्यदा मेहनत करनी पड़ेगी अब “
हम दोनों ही वंहा से निकल गए शहर से कुछ दूर जंगलो की तरफ जा रहे थे ..
“हम कहा जा रहे है “
“डॉ के क्लब ..”
“जंगल में ??”
“नहीं जंगल के रास्ते से , अब चुपचाप बैठो “
मैं भी शांत होकर बैठ गया था , गाड़ी जंगल के अंदर के रास्ते में जा रही थी ...
कुछ दूर जाकर जूही ने गाड़ी रास्ते से उतार कर एक पगडण्डी पर ला दी
“इस साले डॉ ने ये कैसा क्लब बनाया है जो जंगल के इतने अंदर है “
जूही ने कोई जवाब नहीं दिया बल्कि वो बस मुस्कुराई
और थोड़ी दूर जाकर गाड़ी रोक दिया
हम एक झरने के पास थे वो झरने की तरफ बढ़ने लगी साथ ही मैं भी हो लिया , फिर अचानक से उसने मुझे झाड़ियो के पीछे खीच लिया ...
“शांत रहो थोड़ी देर और देखो “
उसने झाड़ियो से मुझे दिखाया कुछ लोग हमारे पीछे थे वो चार लोग थे सभी हट्टे कट्टे और ट्रेंड लग रहे थे , सभी के पास मैंने हथियार देख लिया , मुझे समझ आ गया की ये लोग हमारा घर से निकलने पर ही पीछा करना शुरू कर चुके थे ..
“इन चुतियो के कारण ही तुम्हे काजल से दूर रखा गया है अब समझे “
वो लोग हमें ही ढूँढ रहे थे , हमारी गाड़ी तो उन्हें मिल गयी लेकिन हम नहीं दिख रहे थे ..
अब वो लोग थोड़े बेचैन होने लगे , चारो ओर नजर गडाए ख़ामोशी से वो छानबीन कर रहे थे , शायद वो भी ये पता नहीं लगने देना चाहते थे की वो हमारे पीछे है , जूही ने मेरा हाथ खिंचा और अपने साथ ले गई , थोड़ी दूर छुपते हुए हम एक बड़े से पत्थर के पास पहुचे , जूही ने अपने पर्स से एक गोलाकार छोटा सा कोई डिवाइस निकाला और पत्थर में बने एक छोटे से गड्ढे में उसे डाल दिया ..
मैं आँखे फाड़े ये सब देख रहा था की सामने पत्थर में एक किबोर्ड दिखाई देने लगा वो पत्थर का ही बना हुआ था , जूही ने उसने कुछ दबाया जैसे पासवर्ड डाल रही हो और पत्थर में एक छोटा सा दरवाजा खुल गया , जूही ने चारो ओर देखा , अभी वो लोग हमारी ओर ही बढ़ रहे थे , जूही ने मुझे इशारा किया और मैं तुरंत उस गेट के अंदर चला गया , जूही भी अंदर आ गयी और तुरंत ही उसने वो गेट बंद कर दिया ...
अभी वंहा बहुत ही अँधेरा था , जूही के मोबाइल के प्रकाश की रोशनी में हम दोनों थोडा आगे गए वो सुरंग की तरह था ...
“अपना मोबाइल स्विच ऑफ कर दो “
मैंने तुरंत अपना मोबाइल स्विच ऑफ कर दिया , जूही ने सुरंग की दीवाल पर कुछ ढूंढा , वो एक स्विच था उसे दबाते ही कई बल्ब जल उठे थे वो सुरंग इतने बड़ी थी की मैं झुककर खड़ा हो पा रहा था ..
लेकिन सामने देख कर मैं हैरान रह गया की वंहा रेल की पटरियों जैसे पटरी बनी हुई है और उसमे एक ट्राली रखी हुई है ,
“चलो अब एक सैर हो जाए “
जूही ने मुझे मुस्कुराते हुए देखा हम दोनों ही उस ट्राली में बैठ गए , वो उन पटरियों में दौड़ाने लगी थी ...
कुछ देर बाद जूही जब वो ट्राली रुकी वो हम दोनों उससे उतर गए , सुरंग अभी और भी लम्बी थी ...
“ये कहा जाती है “
मैंने जिज्ञासावस उससे पूछ लिया ..
“वो तुम्हारे काम की नहीं है अभी हमें इस दिवार के बहार जाना है “
जूही ने एक स्विच दबाया और दिवार से एक गेट उभर कर आ गया , हम दोनों जब उसमे गए तो हम सुरंग से बाहर आ चुके थे , मैं उस जगह को पहचानता था , हमने जन्हा अपनी गाड़ी छोड़ी थी वो वंहा से महज एक किलोमीटर की ही दुरी पर था ..
हम अभी भी जंगल में ही थे .. थोड़ी दूर चलने पर ही एक गाडी खड़ी हुई मिली उसमे एक ड्राईवर भी था ..
“इतना तामझाम ??”
मेरी बात सुनकर जूही हस पड़ी
“ये बस उन लोगो को चकमा देने के लिए था , क्लब तो शहर के अंदर ही है “
जूही ने गाडी में बैठते हुए कहा ..
हम अब गाड़ी की पिछली सिट पर आराम से बैठ चुके थे ..
“मुझे लगा की ये सीक्रेट क्लब है इसलिए इतना तामझाम करके आना पड़ता होगा “
मेरी बात सुनकर वो हँस पड़ी
“ऐसा नहीं है , सीक्रेट इसलिए है क्योकि वंहा जो होता है वो सीक्रेट है , बाकि तो वंहा कोई भी आ सकता है , लेकिन कुछ खास लोगो के लिए खास व्यवस्था होती है ,कुछ ऐसे ही गुप्त तरीको से “
“ओह्ह तो इतना सब करने की क्या जरुरत थी , मैं तो इन लोगो को ऐसे ही चकमा दे सकता था ...”
जूही मेरे ओर देखने लगी ,
“अच्छा , बच्चू वो कोई आम लोग नहीं थे , वो तुम्हारी लोकेशन तुम्हारे मोबाइल के सिग्नल से ट्रेस कर रहे थे , और सभी के पास एक जीपीएस डिवाइस था ... वो हमारी गाड़ी को भी आसानी से ट्रेस कर सकते है “
“अजीब बात है की अगर ये कबीर करवा रहा है तो वो इतना खर्चा काजल के उपर क्यों करवा रहा है “
“क्या पता की कबीर करवा रहा है या कोई और ..??”
जूही की बात सुनकर मेरे मन में एक अनजाना डर आने लगा था , ये सच था की मैं एक ट्रेंड ओफ्फिसर था लेकिन मैंने अपने जीवन में कई ऐसी खतरनाक चीजे भी देखि थी जिनसे पार पाना आम इंसानों के बस का नहीं था ...
मैंने अपने चहरे में एक मुस्कान ले आया मैं नहीं चाहता था की जूही को मेरी चिता का पता लगे , वो बेचारी मेरे कारन ही इन लफडो में फंस गई थी ...
थोड़ी देर बाद हम एक ऐसी जगह पर पहुचे जो बहुत ही पोश लग रही थी , बड़े बड़े बंगले बने हुए थे , हर बंगला किसी फार्म हॉउस की तरह कई एकड़ में फैला हुआ लग रहा था , हम एक बंगले के पीछे वाले इलाके में थे , वंहा भी एक छोटा सा गेट था जिसपर एक दो गार्ड थे , हमारी गाड़ी वही से अंदर चली गयी ...
मुख्य मकान के पीछे से मुझे अंदर ले जाया गया ..
बाहर से बहुत ही सामान्य दिखने वाली ये जगह अंदर से बहुत ही रहस्यमय थी ..
अंदर जाते ही जूही ने मुझे एक मास्क पहनने को दे दिया , वो एक दैत्य का चहरा लग रहा था , उसे पहनने से मेरा पूरा चहरा कवर हो चूका था ...
हम एक हाल में पहुचे जन्हा मैं ये देख कर दंग रह गया की यंहा इतने लोग पहले से मौजूद है ..
दोपहर का समय था लेकिन यंहा पूरी तरह अँधेरा था शायद जमीन के अंदर होने के कारण ऐसा हो , वही हलके प्रकाश की व्यवस्था की गयी थी , डांस सांग चल रहा था और लोग शराब के नशे में झूम रहे थे , सिगरेट पीने वालो के कारण वंहा थोडा धुवा भी फैला हुआ था , ये एक आम क्लब से ज्यादा कुछ भी नहीं लग रहा था , और लोग भी आम लोगो जैसे ही दिखाई दे रहे थे , लेकिन यंहा कई लोग अलग अलग तरह के मास्क पहने हुए नजर आ रहे थे , जबकि कुछ लोगो ने कोई भी मास्क नहीं पहना था ..
मेरी उत्सुकता बढ़ ही रही थी की आखिर ये जगह है क्या ???
वही काजल से मिलने की उत्सुकता तो थी ही ..
सब को चीरते हुए हम आगे बढ़ते जा रहे थे , मुझे अंदाजा हुआ की ये क्लब कितना बड़ा है , कई बड़े बड़े कमरों से होते हुए हमे एक और दरवाजा मिला जिसके बहार चार मुस्कंडे खड़े हुए थे , जूही ने उन्हें एक पास दिखाया और उन्होंने वो गेट खोल दिया ..
“डॉ चुतिया की दुनिया में तुम्हारा स्वागत है “
जूही ने गेट से अंदर जाते ही मुस्कुराते हुए कहा …
“यार इतना खर्चा होता क्या है यंहा पर “
जूही मेरी बात को सुनकर हँसने लगी
“बस देखते जाओ , कई लोगो के लिए ये स्वर्ग है , पता नहीं तुम्हारे लिए हो या नहीं ..”
अंदर हलकी लाल रोशनी फैली हुई थी , ये भी एक सुरंग सा था लेकिन थोड़े ही देर में वो ख़त्म हो गया और फिर हम एक बड़े से कमरे में पहुचे जन्हा एक अजीब सी गंध मेरे नाक में पड़ी , बिलकुल मदहोश कर देने वाली खुशबू थी , यंहा सभी के चहरे में मास्क लगा हुआ था,लेकिन कपडे किसी के शरीर में नहीं थे , कई औरते और मर्द वंहा बैठे हुए शराब और सबाब का आनंद उठा रहे थे , इतना मादक और कामुक दृश्य मैंने अपने जीवन में नहीं देखा था , पूरा कमरा हलकी लाल रोशनी से प्रकाशित था लेकिन गठीले जिस्म वाली ओरतो के नग्न बदन को देखकर मेरा गला थोडा सुख सा गया, हम सबके बीच से होते हुए आगे जा रहे थे ...
अलग अलग टेबल पर लडकिया मर्दों के गोद में बैठी हुई उन्हें शराब पिला रही थी , लोग भी मानो किसी दूसरी ही दुनिया में हो सभी अपने में मस्त थे, नग्नता का आभास जैसे यंहा किसी को नहीं हो रहा था , काम करने के लिए बहुत ही खुबसुरत जिस्म के मालिक स्त्री और पुरुष लगे हुए थे , वो भी नंग ही घूम रहे थे , हाथो में ट्रे लिए वो लोगो को उनके पसंद की चीजे लाकर दे रहे थे ...
“अपना मुह बंद करो और भी बहुत कुछ देखना है तुम्हे “
जूही ने हसंते हुए मुझे कहा ..
मैं ये सब देखकर एक बार को काजल के बारे में ही भूल गया फिर मुझे अचानक याद आया की काजल इस जगह पर है , मेरे दिल की धड़कने बढ़ने लगी थी , ऐसी जगह पर मेरी बीवी कई दिनों से थी , वो भी मेरे बिना, यंहा मैंने कई गठीले मर्दों को नंग देखा था , क्या काजल ने भी उन्हें इस हालत में देखा होगा ???
सोचने वाली बात है की जब मैं ये नजारा देख कर उत्तेजित हुआ जा रहा हु ,क्या काजल को उत्तेजना नहीं आई होगी ???
हम फिर से एक द्वार पर पहुच गए वंहा भी जूही ने एक पास दिखाया और दरवाजा खुला ..
पता नहीं अब इस दरवाजे के अंदर क्या था , अभी तक मुझे ना तो डॉ चुतिया कही दिखे थे ना ही काजल का कोई नामोनिशान दिखा था ..
दरवाजे के अंदर साफ लाइट जल रही थी , कोई धुवा नहीं बस एक हलकी सी सुगंध फिजाओ में फैली हुई थी , सुरंग जैसी आकृति से थोडा अंदर आने पर ही सामने एक बड़े से सोफे में एक नग्न आदमी बैठा हुआ दिखा जिसपर दो लडकिया सर्प सी लिपटी हुई थी , दोनों लडकिया भी बिलकुल नग्न थी और बहुत ही खुबसूरत जिस्म की मालकिन थी ...
उनके उठे हुए वक्ष उस आदमी के मरदाना छाती में घिस रहे थे , वो उनके बालो को सहला रहा था और लडकिया उससे सांप की तरह चिपकी हुई थी , और काले अंगूर उसके मुह में डाल रही थी , दूसरी लड़की के हाथो में स्ट्राबेर्री था वही वो आदमी रेड वाइन से भरी ग्लास को हलकी हलकी सिप लगाकर पि रहा था ..
वो मुझे देखकर मुस्कुराया , ये वो आदमी था जिसके पास मेरी बीवी इतने दिनों तक रही थी , वो डॉ चुतिया था ..
उसने ग्लास उठाकर हमारा अभिवादन किया लेकिन मेरी नजर उसके छाती के बीच में बने एक टेटू पर चली गयी ,
दाई छाती पर बना एक नाग का टेटू , मैं उसे अच्छे से पहचानता था , फन फैलाये हुए नाग जो की कुंडली मार कर बैठा था , काले रंग के उस टेटू में बने नाग की आंखे जैसे चमक रही थी ...
उसे देखते ही मेरे पैरो से जैसे जमीन ही खिसक गई , मुझे ऐसा लगा जैसे उनमे ताकत ही नहीं है , मैं हलके से लडखडा गया, सर चकरा गया था वही दिमाग में जोर डालने से मुझे बेहोशी सी आने लगी . जूही ने तुरंत मुझे सम्हाला
“देव तुम ठीक तो हो न ...”
“ब्लैक कोबरा ..”
मैंने हलके से कहा और जैसे मैं थोड़े देर के लिए अचेत हो गया ........