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Incest घरेलू जब रंडी बनी ( no pakkau only Vasna )

Tumhari mummy

Shobna kashyap
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Wahhhh
nice update ...mona to pyaasi hi reh gayi ??...kisike paas chudne ke liye jao to uski jaankari pehle nikalo? ab kaka to mard hi honge asli wale ,,9 ya 11 inch lund . par suman ka matter abhi clear nahi hai.....uski kahani ko incest kaise banaoge ??
Tmhre concepts
 

Tumhari mummy

Shobna kashyap
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अब तक आपने इस ससुर बहु सेक्स की कहानी में पढ़ा कि मोना ने राजू का मरियल लंड ये सोच कर चूसा था कि उसकी चुत की खाज किसी तरह मिट जाएगी.. पर उसका लंड ढीला पड़ जाने से मोना नीचे आ गई और नीचे काका उसके कमरे में बैठे थे वे उसकी इस हरकत को देख चुके थे। ये जान कर मोना ने रोने का नाटक शुरू कर दिया।
अब आगे..

काका- अरे रोती क्यों है पगली.. मेरी बात तो सुन, मैं किसी को कुछ नहीं बताऊंगा.. अरे अगर बताना होता तो उसी समय उस कुत्ते को जान से मार देता जब वो तुझे छू रहा था, मगर मुझे अपने घर की इज़्ज़त का ख्याल है। बस इसी लिए चुपचाप वापस नीचे आ गया।

काफ़ी देर तक काका ने मोना को समझाया तब कहीं जाकर वो चुप हुई और काका के पास बिस्तर पे बैठ गई।

काका- बेटी तू शादीशुदा है, अपना अच्छा-बुरा अच्छे से जानती है। फिर ये नौबत क्यों आई कि एक पराए मर्द के पास तुझे ऐसे आधी रात को जाना पड़ा?
मोना- काका मैं कुछ बोलूँगी तो आपको बुरा लगेगा.. इसलिए ये बात आप ना ही पूछो तो अच्छा होगा।
काका- अरे ऐसे कैसे ना पूछू.. तू मेरे घर की बहू है.. क्या कमी है गोपाल में? जो तुझे राजू जैसे नामर्द के पास जाना पड़ा?
मोना- काका अगर ऐसी बात है.. तो सुनो आप राजू को नामर्द कह रहे हो ना.. तो आपका गोपाल भी राजू जैसा ही है.. एक बार में आउट हो जाता है वो भी चंद मिनटों में!

शुरू से अब तक की सारी कहानी मोना ने काका को बताई कि कैसे वो दूसरे मर्द की तरफ़ आकर्षित हुई।

मोना की बात सुनकर काका को दुख हुआ और साथ आँखों में चमक भी आ गई, शायद वो मोना को भोगने का मन बना चुके थे। काका ने अपना हाथ मोना की पीठ पर रखा और धीरे-धीरे फेरते हुए वो मोना से बोले- देखो बेटी, किस्मत का लिखा तो मैं बदल नहीं सकता मगर तुमको तुम्हारे हिस्से की ख़ुशी जरूर दे सकता हूँ।

मोना समझ गई कि काका क्या कहना चाहते हैं.. मगर वो अनजान बन कर पूछने लगी- कैसे.. आप मुझे ख़ुशी कैसे दोगे?

काका ने अब अपना हाथ पीठ से धीरे से मोना के सीने पर रख दिया- देखो बेटी किसी अनजान मर्द से अच्छा तो ये है कि मैं ही तुझे खुश कर दूँ.. अगर तुझे एतराज़ ना हो?
मोना की चुत तो वैसे ही जल रही थी उसे तो बस लंड चाहिए था.. चाहे वो किसी का भी हो.. मगर काका की उम्र को देख कर उसको थोड़ा शक हुआ तो वो काका को उकसाने के लिए बोली- रहने दो काका.. आपसे कहाँ कुछ दिया जाएगा, गोपाल भी तो आपके ही खेत की फसल है.. अब वो जवानी में ऐसा है तो आपकी तो उम्र हो गई है.. आपसे कहाँ कुछ हो पाएगा?
काका- अरे बेटा फसल को कीड़ा भी लगता है.. उसी तरह शहर की हवा में गोपाल ऐसा हो गया, मगर मैं आज भी जवान ही हूँ.. यकीन ना आए तो खुद देख लो।

इतना कहकर काका ने मोना का हाथ पकड़ा और अपने लंड पे रख दिया।
जैसे ही मोना ने लंड को महसूस किया, उसकी आँखें फटी की फटी रह गई। क्योंकि धोती के अन्दर जो चीज थी वो काफ़ी भारी भरकम थी।
मोना- काका ये क्या है.. इतना बड़ा?
काका- अभी कहाँ बड़ा है मोना रानी, इसे प्यार से छू.. फिर देख कितना बड़ा होता है ये।

काका अब अपने रंग में आ गए थे। वे मोना को बेटी से सीधे रानी बोलने लगे और साथ ही मोना की चुची सहलाने लगे थे। मोना को तो ऐसे ही किसी मौके की तलाश थी.. मगर काका उसके पति के काका थे तो वो शर्माने का नाटक करने लगी- नहीं, मुझे आपसे बड़ी शर्म आ रही है.. मैं आपका ‘ये’ नहीं सहला सकती।

काका पर अब सेक्स चढ़ चुका था, वो मोना के मम्मों को दोनों हाथों से मसलने लगे थे और बीच-बीच में उसकी चुत को भी दबा देते।
मोना- आह.. काका ऐसा मत करो.. मुझसे बर्दाश्त नहीं हो रहा आह.. प्लीज़ आह.. कुछ हो जाएगा।
काका- अरे मोना रानी ऐसे शर्मा मत.. जो होगा उसको होने दे, उसी में सबकी भलाई है। आज पूरी कर ले अपनी इच्छा, नहीं तो जिंदगी भर पछताएगी।

मोना ने काका के लंड को पकड़ लिया और धीरे-धीरे सहलाने लगी- काका, किसी को पता चल गया तो क्या होगा?
काका- अरे रानी घर में कोई नहीं है.. किसी को कानों-कान खबर नहीं होगी.. चल अब देर ना कर!
मोना- मैं कहाँ देर कर रही हूँ काका, देर तो आप कर रहे हो, जो अब तक कपड़ों के ऊपर से ही मेरे जिस्म को सहला रहे हो।

अब मोना ने खुला निमन्त्रण काका को दे दिया था और काका भी कहाँ पीछे रहने वाले थे, उन्होंने झट से मोना की नाईटी निकाल दी और ऊपर से नीचे तक उसको निहारने लगे।
मोना ने अपने मम्मों को काका के होंठों की तरफ उठाया और बोली- काका, देखते ही रहोगे क्या या कुछ करोगे भी?

काका- रुक मेरी रानी.. मुझे आराम से तेरी जवानी को निहार लेने दे.. उस दिन ब्रा में कसी तेरी चुची देख कर भगवान से प्रार्थना की थी कि एक बार ये चुची नंगी देखने को मिल जाएं और आज देखो भगवान ने मेरी सुन ली।
मोना- ये आप क्या कह रहे हो, आपने कब देखा मुझे ब्रा में?
काका- अरे जब तू कपड़े बदल रही थी ना.. तब देखा था। मन तो उसी वक़्त किया कि तेरे रसीले मम्मे चूस लूँ मगर तू इस घर की बहू है, तो तुझे बख्श दिया।
मोना- हे राम.. मुझे लगा भी था कि कोई मुझे देख रहा है। काका आप तो बड़े चुदक्कड़ हो?

काका- अरे रानी मेरी चुदाई तूने अभी देखी कहाँ है, इस गाँव की ना जाने कितनी कुँवारी सील मैंने ही तोड़ी हैं और कई शादीशुदा लड़कियों को चोद कर उनको मज़ा भी दिया है।
मोना- काका आप इतने बड़े चोदू हो फिर भी आपके कोई औलाद नहीं.. ये कैसे हो सकता है?
काका- अरे पागल, तेरी काकी बांझ है मेरे तो ना जाने कितने बेटे और बेटियां इस गाँव में घूम रहे हैं।
मोना- वो कैसे काका.. मैं समझी नहीं कुछ?
काका- अरे रानी कई ऐसी औरतें मेरे से चुदी हैं.. जिनके पति उनको माँ ना बना सके और मैंने उनकी गोद भर दी तो इस हिसाब से मेरे कई बच्चे हुए ना.. हा हा हा हा..
काका के साथ मोना भी हँसने लगी।

काका- बस मेरी जान ये सवाल बहुत हो गए। अब तू अपने काका की चुदाई देख, फिर बताना मज़ा आया कि नहीं।
मोना- अपने अजगर को तो आज़ाद कर दो काका, वो कब से अन्दर तड़प रहा है बेचारा।
काका- उससे ज़्यादा तो तू तड़प रही है उसे देखने के लिए.. चल तू खुद उसको आज़ाद कर दे।

मोना धीरे से काका के पास को हो गई और उनकी धोती को खोल कर साइड में रख दी। अन्दर से काका का 9″ का लंड फनफनाता हुआ बाहर निकला, उसकी मोटाई भी बहुत थी जिसे देख कर एक बार तो मोना डर गई- हे राम.. काका इतना बड़ा ये कैसे जाएगा अन्दर?
काका- अरे रानी, ये तो कमसिन कली की चुत में पूरा समा जाता है.. तू तो खेली खाई है। चल आजा प्यार कर इसको फिर देख ये तुझे कैसे जन्नत की सैर कराता है।

मोना अपने घुटनों पे बैठ गई और लंड पर अपनी जीभ बड़े प्यार से घुमाने लगी। वो लंड को चाट रही थी और साथ ही साथ काका की गोटियों को भी हाथ से सहला रही थी।
काका- आह.. उम्म्ह… अहह… हय… याह… चूस रानी.. चूस.. आज बड़े दिनों बाद मेरे लंड पे किसी के होंठ लगे हैं.. आह.. आह।

लगभग 5 मिनट तक मोना पागलों की तरह लंड को चूसती रही। वो पूरा लंड मुँह में भर रही थी और काका उसके मुँह को चुत समझ कर चोदने में लगे हुए थे।

मोना- बस काका अब बर्दाश्त नहीं होता.. घुसा दो अपना बम्बू मेरी चुत में.. कर दो इसे ठंडा..!
काका- मेरी मोना रानी.. ऐसे थोड़ी सीधे घुसा दूँगा, पहले तेरी चुत का रस पीऊंगा तुझे जल बिन मछली की तरह तड़पाऊंगा उसके बाद कहीं तेरी चुदाई करूँगा।

काका ने मोना को बिस्तर पर चित्त लेटा दिया और उसके मम्मों को चूसने लगा। फिर धीरे-धीरे काका उसके पूरे जिस्म को ऐसे चाटने लगा जैसे वो कोई रसमलाई हो और आख़िर में जब काका के गर्म होंठ उसकी चुत पर जा लगे। मोना ने एक लंबी सांस ली और उसकी चुत का झरना बह गया।

मोना- आआहह सस्स्सस काका ओप्पस एयाया सस्स्स..
काका भी पका हुआ रंडीबाज था.. सारा रस जीभ से चाट गया।

काका- अरे मेरी मोना रानी.. बहुत जल्दी झड़ गई.. तूने तो ठीक से चुत को चूसने भी नहीं दिया।
मोना- कब से वासना की आग में जल रही थी.. ऊपर से अपने मेरी आग को और भड़का दिया तो मुझसे बर्दाश्त ना हुआ।
काका- अच्छा हुआ जो झड़ गई.. अब मेरे लंड से दोबारा झड़ना तू.. ले संभाल मेरे मूसल को।

इतना कहकर काका ने लंड चुत पे टिकाया और जोर का झटका मार दिया.. आधा लंड चुत को फैलाता हुआ अन्दर घुस गया।
मोना- आऐय यइ उफफफफ्फ़ बहुत मोटा है आपका आह.. आराम से जान लोगे क्या?

काका ने मोना की बात अनसुनी करते हुए लंड को पीछे खींचा और फिर से एक जोरदार दे धक्का दिया। इस बार पूरा 9″ का लंड मोना की चुत में खो गया.. उसके साथ ही मोना की चीख निकल गई।

मोना- आआआ आआआ आआआअ..
काका- अरे चिल्लाती क्यों है रानी.. गोपाल ने तेरी चुत को आधा ही खोला था आज मैंने पूरी चुत खोल दी.. अब तू मज़े ले।

काका को ऐसी मस्त चुत मिल गई, वो अब कहाँ रुकने वाले थे.. उन्होंने मोना को रेल बना दिया। लंड के दे झटके.. दे झटके.. काका तो इस वक्त रेस के घोड़े बने हुए थे और मोना हर बार चीख कर रह जाती।

करीब 15 मिनट तक चुदाई चलती रही। अब मोना की चुत में लंड बराबर फिट हो गया था और उसको अब बड़ा मज़ा आ रहा था।

मोना- आह.. आ सस्स काका उफ़फ्फ़ मैं गई.. आह जोर से चोदो.. आआ आआ मेरा रस निकल रहा है एयाया सस्सस्स गई आह..
काका- ले आह.. साली रांड ले आह.. ज्ज़र..जा आज आह तेरी चुत को आह.. पूरा सुकून देके मानूँगा ले आह.. ले..

काका झटके पे झटके लगा रहा था और मोना की चुत पानी झड़ रही थी। जब मोना झड़ के शांत हो गई तो उसको अब चुत में जलन सी होने लगी।

मोना- आह.. काका आह.. अब निकाल भी दो अपना पानी आह.. कब तक चोदोगे आइईइ चुत जलने लगी है अब तो आह..
काका- उहह उहह साली रांड ये तेरे नामर्द पति का लंड नहीं है जो जल्दी ठंडा हो जाएगा आह.. ले ले गाँव का तगड़ा लंड है आह.. आ पूरा मज़ा लेकर ही झड़ेगा।

इधर काका के संग मोना की चुदाई चल रही है इसका आगे भी मजा लेते रहेंगे।
 

Tumhari mummy

Shobna kashyap
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Plz see my brand new story and comments & suggest some

 
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