• If you are trying to reset your account password then don't forget to check spam folder in your mailbox. Also Mark it as "not spam" or you won't be able to click on the link.

Incest घर की जवान बूरें और मोटे लंड - [ Incest - घरेलू चुदाई की कहानी ]

पायल किस से अपनी सील तुड़वाये ?

  • पापा

    Votes: 196 70.0%
  • सोनू

    Votes: 80 28.6%
  • शादी के बाद अपने पति से

    Votes: 4 1.4%

  • Total voters
    280
  • Poll closed .

Nasn

Well-Known Member
2,904
4,776
158
ससुर बहु की काम कीड़ा लुका छुपी
अद्भुत अकल्पनीय ...थी...


-- -- - - - -♦♦♦♦--- --- ---

रमेश उर्मिला की आँखों में देखते है फिर झट से उसके बड़े-बड़े दूध को दोनों हाथों से दबोच लेते है...

रमेश : बहु....अपने ओठों का रस पिला दे बहु.....

उर्मिला : (आँखे बंद करते हुए) ओह ....बाबूजी....!! (और अपना मुहँ खोल देती है)

रमेश अपनी मोटी जीभ उर्मिला के मुहँ में घुसा देता है. उर्मिला बाबूजी की जीभ को चूसने लगती है.


ससुर बहु की रासलीला बेमिसाल


उधर रसोई में ससुर-बहु का अलग ही खेल चल रहा था. जीभ चूसने के बाद बाबूजी उर्मिला के ब्लाउज के हुक खोलने लगे थे. हुक खुलते ही उर्मिला की बड़ी बड़ी चूचियां बाबूजी के सामने नंगी हो जाती है. बिना कोई वक़्त गवायें बाबूजी उर्मिला की चुचियों को मुहँ में भर लेते है और चूसने लगते है. उर्मिला अपने ओंठ काटते हुए बाबूजी से दूध चुसवा रही है. आज बाबूजी पुरे जोश में उर्मिला के दूध दबा-दबा के पी रहे थे. वो निप्प्लेस ऐसे चूस रहे थे की अगर उर्मिला दूध दे रही होती तो आज एक बूँद भी नहीं बचता. अच्छे से दूध चूसने के बाद बाबूजी उर्मिला से कहते है.

रमेश : बहु...आज मेरे पैर नहीं पढ़ोगी?

उर्मिला भी समझ जाती है की बाबूजी के दिल में क्या है. खुले ब्लाउज से बाहर आये नंगे दूध के साथ उर्मिला धीरे से झुकती है और बाबूजी के पैर छुती है. पैर पढ़ने के बाद वो जैसे ही खड़े होने लगती है तो बाबूजी का ११ इंच का लम्बा मोटा लंड उर्मिला के सर से रगड़ खाता हुआ उसके ओठों पर आ कर रुक जाता है. उर्मिला वैसे ही लंड को ओठो पर रखे नज़रे उठा के बाबूजी को देखती है.बाबूजी की आँखों में उसे हवस दिखाई दे रही है. बाबूजी उर्मिला से कहते है..

उर्मिला : आह्ह्हह्ह...!! बाबूजी....क्या कर रहें है आप?

रमेश : अपनी प्यारी बहु का छेद तलाश रहा हूँ...किसी में तो घुसे....

रमेश ३-४ बार वैसे ही जोर से झटके देता है और हर बार उर्मिला की टाँगे फ़ैल कर हवा में उठ जाती है.

उर्मिला : आह्ह्ह्ह...!! बाबूजी...अभी छेद में डालने का वक़्त नहीं है...आह्ह्ह्ह...!! मम्मी जी आ जाएगी...आह्ह्ह...!!


एक सके बढ़ कर एक अपडेट

रमेश : बहु...बहहुत मज़ा आया. अब बताओ अपनी बूर कब दे रही हो?

उर्मिला : जल्द ही दूंगी बाबूजी. जब कोई रोकने-टोकने वाला ना हो तो आप मेरी बूर में अच्छे से लंड पेल देना. अब आप जाइये बाबूजी...मम्मी जी कभी भी उठ सकती है.

बढ़िया अपडेट
 
Last edited:
Top