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Incest जिन्दगी ## एक अनाथ की##

Gurdep

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Update 45
मुम्बई के पास एक बहुत ही आलीशान मकान में जो समुन्दर के कनारे पर बना थोडासा अलग ही बना हुवा था वहां की बनी हुवी बाकी घरोसे, शायद उसके मालिक को लोग पसन्द ना हो या उसे लोगो से चिढ़ हो ,वजह वही जानता होगा ,उसके घर कहे या बंगला किसी को भी अंदर आने की इजाजत नही थी, बस उसके खास कुछ नौकर थे वो ही बंगेले में आते जाते रहते ,उस बँगले के मालिक को आज तक 25 साल से काम कर रहे उसके चौकीदार ने नही देखा था तो बाकी लोगो का क्या कहना ,उसको हर महीने में 1 तारिख को उसकी तनख्वाह मिल जाती बंगेले में काम कर रहे नोकर के हाथ से,चौकीदार ने उसे भी पूछा था क्या में मालिक को मिल सकता हु कभी तो उस नोकर ने जो कहा ,उसके बाद उसने कभी उस मालिक से मिलने का नाम निकाला ही नही ,
मिल सकते हो मालिक से अगर तुमको जिंदा नही रहना तो,उनको देखने वाले को आजतक कभी मेने जिंदा नही देखा है ,पिछले 30 साल से,यहाँ पर कभी भी ताक झाक मत करना ,और ना यहां की बातें बाहर किसीसे करना जिस दिन तुम कुछ ऐसा करोगे उसके बाद अपनी मौत पक्की समझ लेना,अपना काम करो ,महीने की पगार लो ,और बंगेले के गेट पर ही रुको उसके अंदर नही सिर्फ बाहर नजर रखो,
उसी बंगले में एक कमरे में दो लोग बात कर रहे थे ,आइये उनकी बातें सुन लीजिये
तुम मुझे कुछ सही बात बोलोगे या नही,तुमको मेने आज तक कितनी बार बचाया है,ये बात मेरे लिये बहुत जरूरी है नील ,तुम हमे बता दो हम यहां से चले जायेंगे ,
विशाखा में भी तुम्हारी तरह एक संरक्षक ही हु, जिस शक्ति को कोई हजारो साल से कोई ढूंढ नही सका, ना उसके बारे में किसी को पता था ,उसके अस्तित्व की बात सिर्फ कुछ को थी ,जो कब के उसके लोभ के चक्कर मे मारे गये, और मेरी बात का यकीन करो वो शक्ति अब भी मंदिर में ही है पर कही पर छूपी हुवी ,ना उसको कोई महसूस कर सके ना उसे कोई पा सके इस तरह उसने खुद को अब अदृष्य कर लिया है ,तुम बेवजह उसको ढूंढ रही हो बाहर,तुमको मंदिर की रक्षा छोड़कर ऐसे नही आना चाहिये ,नील
में उस शक्ति को बाहर कहि भी महसूस करती तो मुझे पता चल जाता वो कहा है ,और दुनिया मे कोई ऐसी चीज नही जिसको में महसूस ना कर सकू,उसको में मन्दिर में महसूस नही कर पा रही हु पहले की तरह पिछले 6 महीने से,मेने उसे पूरी दुनिया मे ढूंढा पर वो नही मिली ,अब तुम्हारी बात को मानते हुवे में मन्दिर की रक्षा करने जा रही हु, सिर्फ़ इतना याद रखना नील यह बात अगर झूठ निकली तो तुम कहि भी छुप लो ,में तुमको मार दुंगी, विशाखा के जाने के बाद उसके कमरे में दो आदमी आकर निल के सामने खड़े हो गए
अब क्या होगा नील हम दोनों कुछ समझ नही पा रहे हैं ,अब हमको क्या करना होगा ,उन दोनों में से एक ने बोला,
जोगी और होरा तुम दोनो अब विशाखा की मदद करोगो आज से ,अब उस मंदिर में बहुत सी बड़ी ताकते आएगी जिसका मुकाबला विशाखा भी अकेली नही कर सकती तुम को अपनी पूरी ताकद लगानी होगी उस काम मे ,निल बोला
नील क्या उस मुकाबले में ही सब फैसला हो जाएगा या बात और कुछ है,जोगी बोला ,
नही मुकाबले के दिन फैसला नही होगा पर अब एक दूसरे को मारकर ,अपने रास्ते मे आने वाला हर खतरे को कम करने की कोशिश उस दिन से बहुत तेज़ होगी,उस दिन तो सिर्फ पहचान ही होगी कि कौन कौन है उस दौड़ में जिनको शक्ति हासिल करनी हे ,निल ने कहा
विशाखा भी उनको रोक नही सकती ,उसके सामने तो कोई भी पराक्रमी योद्धा पल भर नही टिकता,वो अकेली ही हज़ारों महायोद्धा को मार सकती है ,क्या उससे भी बलवान अब मैदान में आनेवाले है ,होरा ने पूछा
उस शक्ति को पाने के लिये ,विशाखा के जितने ही नही ,उससे कई गुना ताक़दवर होंगे ,जिनका मुझे भी अंदाजा नही है ,हम तीनों को अपनी आखरी साँस तक विशाखा का साथ देना है, बाकी लोक भी हमारी मदद करेंगें इस काम मे ,
तुम दोनों अब से मन्दिर के पास ही रहोगे ,जावो तुम वो दोनो भी चले गए,नील अकेला ही रह गया था कमरे में ,
यह कैसी पहेली ही जिसका जवाब किसीके पास नही ,में ,विशाखा कब तक बचा सकेंगे इस शक्ति को , हम चारों के अलावा कोई है भी नही जो इन ताकतों से लड़ सके, पता नही समय के गर्भ में क्या छुपा है ,
आज शाम को ही होटल से छुटी मिल गई शिवा को वो 6 बजे ही घर पहुँच गया था ,सबसे पहले वो अपने कमरे में जाकर नहाने गया उसको जो अजीब से बैचेनी हो रही थी शायद नहाने से चली जायेगी ऐसा सोच कर वो ठंडे पानी से नहाकर अपने कपड़े पहनने लगा ,उसको अपने शरीर मे बदलाव नजर आ रहा था ,जब से उसको चमत्कारी शक्तियों का अहसास हो गया था ,अब उसको किसी भी चीज की हैरानी नही होती थी,वो आईने में अपने शरीर को देख रहा था ,उसका अपना शरीर पहले से गठीला लग रहा था ,नीलो के साथ सेक्स करने के बाद वो हर रोज खुद को चेक करने लगा था ,की उसके शरीर मे क्या बदलाव आया है ,उसको अपनी बाइसेप ,चेस्ट ,शोल्डर, थाइज पहले से बड़े और मजबूत हो गए है ऐसा लग रहा था ,उसने अपने टीशर्ट को पहना जो पहले उसको लूज होता था थोड़ा ,वो एकदम स्किन फीट हो गया था ,शिवा ने कुछ सोचकर उसको निकाल दिया और एक लूज आस्तीन वाला टी शर्ट पहन कर बाहर आया ,उसने सोच लिया था कि वह अब थोड़े लूज कपडे ही पहना करेगा ,नही तो अचानक उसकी बढ़ी ऐसी शरीर की मासपेशियां के बढ़ने का कारण क्या बतायेगा उनको , उसने सनी को फोन करके अपने लिये कुछ एक्सट्रा लार्ज टीशर्ट लाने को बोल दिया था,सनी रात के वक्त घर आता था तब लाकर देने वाला था ,
आज दुबई से नरगिस के यहाँ कुछ लोग आए थे इसलिये वो अपने कमरे में बैठकर उनसे बात कर रही थी, दुबई में शिवा के साथ अस्पताल में जो लड़की नरगिस के साथ रहतीं थी वो और उसके साथ रियाज की बेवा थी ,शिवा ने कुछ देर उनकी बात सुनी तभी वहां पर मोना आ गई जो सनम के साथ बाहर घूमने गई थी ,फिर मोना ने रात के खाने तक उसका पीछा ही नही छोड़ा , रात को खाने के वक्त नरगिस के साथ उसकी दोस्त ,और रियाज की बेवा शबनम आई थी ,वो दोनो ने भी सबसे अच्छी तरीके से बात की थीं, आज भी मोना और नरगिस साथ मे ही सोने को चले गये, शिवा आज बस निताके पास कब जाऊ यहीं सोच रहा था ,उसे अब ना ज्वाला की याद आ रही थी ना सुनीता की उसको तो बस निता के पास जाना था ,
रात को अपने कमरे में आने के बाद उसने देखा कि निता सिमा के उसके घर मे बैठी है ,और उसके ही बाजू में सुनीता बैठी है जो में उससे नही मिला था 2 दिनोसे उसका चेहरा उतरा हुवा था और मन मे मेरे ही खयाल चल रहे थे ,मुझे उसे देखकर ज्वाला की याद आयी वो भी होटल के बिस्तर पर नंगी लेटी उसकी राह देख रही थी ,शिवा को अपनी सोच से चिढ़ हो गई बिचारी दोनो उसके साथ 2 महिनो से वो जैसा चाहे वैसा चुदती थी अब निता के मिलने से वह बदल रहा है ,उनको भूल रहा है ,शिवा अपने कपड़े उतारकर गायब होकर ज्वाला के पास पहुच कर उसको अपनी बाहों में भर लिया,ज्वाला भी अपने प्रेमी की तरह उसके बाहो में समाके रोने लगी और शिवा से न आने के लिये शिकवा करने लगी ,उसको प्यार से समझाकर शिवा ने बताया कि उस को कुछ काम की वजह वक्त नही मिल पाया ,उसने आज 1 घण्टे में ही ज्वाला की प्यास बुझा दी ,ज्वाला को उसका लन्ड कुछ ज्यादा ही बड़ा,मोटा और मजबूत लगा था ,शिवा आज जब उसकी चुत में झडा थो उसकी चुत तो आज उसके वीर्य की गरमी से जल जाएगी ऐसा उसको लगा था ,ज्वाला को छोड़ कर उसने सुनीता के पास जाकर उसे भी समाझाया की वह काम से नही आ पाया ,उसको भी एक घण्टे में चोदकर ठंडा कर दिया ,
रात के 3 बज गए थे निता अपने बाथरूम में नंगी नहा रही थी उसके बदन की गरमी उसे आज जला रहीं थी ,उसके साथ आजतक ऐसा नही हों रहा था ,वो ठंडे पानी के शॉवर के नीचे खड़ी अपनी चुत पर अपनी एक उंगली कबसे फिरा रही थी,उसने शावर बन्द करके अपनी चुत को दो अंगलियो से फैलाकर खड़े होकर अपनी आंखें बंद करके पेशाब करने लगी ,उसको बहुत ज्यादा सुकून मिल रहा था पेशाब करके उसने अपनी पेशाब करने के बाद शॉवर चालु करना चाहा तो उसे याद आया कि उसकी पेशाब नीचे गिरने की आवाज आयीं ही नही ,उसे अपने चुत पर किसीके जीभ का अहसास हो रहा था वो कुछ सोच समझ ही नही पा रही थी,वो भी अपनी आँखें बंद करती उसको अपनी चुत का रस उसका सर पकड़ कर पिलाने लगी ,निता को अपना होश सुबह 7 बजे आया जब उसका कोई गेट बजा रहा था ,यह पूजा थी जो निता को उठाने आई थी ,रोज निता 7 बजे से पहले उठकर अपने बेडरूम से किचन में नोकरो से नाश्ता बनवाती, पर उसको वहाँ न देखने से पूजा उसको उठाने आ गई थी ,
निता को रात की सब बातें याद थी उसके बाथरूम में चुत चुसने वाले ने उसको वहासे बेड पर उठाकर लाया था ,निता को वह अपनी आंखों से दिखा नही बस उसकी आवाज़ ही सुनाई देती थी ,उसको किसी बात का डर भी नही लगा था उसके ना दिखने ना का ,निता के शरीर को उसने जिस तरह भोगा था मानो वो उसके हक्क का हो ,निता उसके लन्ड को अपने दोनो हाथोसे महसूस करके डर गई थी पर उसकी चुत और गांड में वो लंड आराम से जड़ तक घुस गया था ,निता को अपने वजूद को पूरा कर लिया हो ऐसा उसके लंड के अपने चुत में समाने से लगा था ,अपनी उंगलियों से टटोलते हुवे लंड को अपने चुत और गांड में उसने देखा था पूरा जड़ तक वो मूसल घुस रहा था ,निता को उसने अपने लंड से निकलने वाली गरम गाढ़ी मलाई पेटभर पिलाई थी ,उसके चुत और गांड में अपना माल भरकर वो सुबह चला गया ,इतना बोलकर की वो रोज रात को 12 बजे आया करेगा आज से ,
शिवा निता को भोग के बहुत खुश था ,उसके बदन को चैन मिला था निता को भोगने के बाद ,जब वो मोना को लेकर कॉलेज जा रहा था ,तब नरगिस के साथ उसकी सहेली उनको विदा कर रही थी ,उसकी मन की बात सुनकर शिवा मन मे बोला ,तुम्हारी तकलीफ़ का यह आखरी दिन है ,तुम्हारी तड़प ,दर्द को आज में हमेशा के लिये खत्म कर दूंगा सिनोब ,तुमको भी जीने का हक है ,जो तुम चाहती हो तुमको वो जरूर मिलेगा
NICE UPDATE BHAI
 

Gurdep

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Update 60
काल जब सुबह विशाखा की गुफा में पहुचा तो सब लडकिया बैठकर बाते कर रही थी ,नेत्रा ने हिमानी और केतकी को आज के दुनिया का सब ज्ञान दे दिया था ,सबसे बड़ी मुसीबत का हल केतकी ने हल कर दिया था ,वो था हिमानी कहा रहेगी ,तो केतकी उसे अपने साथ लेके जाने वाली थी ,हिमानी को यह मंजुर नही था ,बस कहने को वो हा कह रही थी पर उसकी आंखो की नमी से काल और नेत्रा समज गये तब नेत्रा के साथ उसके घर मे अमरीका की दोस्त शादी का सुनकर मिलने को आ गई है ऐसा बहाना बनाकर वो तीनो घर की तरफ निकल गए ,काल तो सुबह से हिमानी के बदन की आती खुशबू से परेशान हो गया था ,उसे ऐसा लग रहा था जाकर सीधा हिमानी की चुत में मुह घुसाकर चाटने लगे , जब तीनो घर पहुचे ,तो लड़कियों की इतनी पलटन के सामने काल का लन्ड पैंट फाड़ने तक कड़क हो गया ,उसे तो हर लड़की और औरत के चुत की अलग अलग ख़ुश्बू रही थी ,उसको अब अपने उपर काबू करना बहुत ही ज्यादा मुश्किल हो गया था ,अगर वह यहां रुकता तो किसी ना किसी के कपड़े फाड़कर उसे चोदने लगता ,बाथरूम का बहाना करके अपने कमरे में चला गया ,उसने मन मे सुनीता ,निता,ज्वाला कह है वो देखा ,निता तो अभी उन सबसे मिलकर अपने कमरे में गयी थी ,निता को अपने अदृश्य यार की याद आ रही थी ,वो अपने कमरे में दरवाजा लगाकर अपने स्तनोसे खेल रही थी ,काल तुंरत अदृष्य होकर निता के कमरे में पहुँचा ,वो अपने यूनिफॉर्म में ही निता के कमरे में आ गया था मतलब पूरा नंगा ,निता के कान के पास जाकर वो बोला,निता क्या कर रही हो ,निता अपने कमरे में अपने अदृष्य यार की आवाज सुनकर खुश हो गई
निता,तुम यहा तक आ गये मेरे बलम
काल,हा मेरी सजनी तेरे चुत के बिना तो में बहुत प्यासा हो गया था
निता ,में भी मेरे बलम के लन्ड को कितना मिस कर रही हु,
काल,जान मुझे तेरी चुत का पानी पीना है ,चल जल्दी से अपनी चुत खोल ना
निता ,मुझे भी तुम्हारे लन्ड का माल पीना है ,में आज जबतक मेरा मन नही भरता तबतक तुम्हारा माल पीती रहुंगी
काल,मेरी रानी तेरे मुह को नही ,तेरी इस गुलाबी चुत और लाल लाल गांड़ के छेद भी तो भरने है
दोनो कभी ऐसी बाते नही करते थे पर आज काल कुछ अलग ही अंदाज में था ,दोनो अपनी बातों से इतने गर्म हो गए कि निता के कपड़े फाड़ता काल उसकी चुत को मुह में भरता उसे चुसने लगा ,दोनो 69 में थे ,निता ने भी काल के लन्ड को मुह में भरकर चुसने लगी आज उसको काल का लंड बहुत ज्यादा गर्म और पहले से कड़क लग रहा था ,उसे तो उसके लंड को मुह में लेते ही एक नशा चढ़ने लगा ,वो जितना हो सके इस गर्म डंडे को अपने हलक में उतारने लगी,
काल ने निता के मुह से लंड निकाला तो उसे गुस्सा आ गया था पर जब काल ने एक ही बार मे अपना पूरा मूसल उसकी चुत में उतारा तो उसका गुस्सा प्यार में बदल गया उसे अपने चुत में उस मूसल की गर्मी अलग ही मजा दे रही थी ,काल निता को पीठ के बल लिटाकर चोद रहा था ,निता तो आज इतने मजे में आ गयी थी कि बस ,वो अपनी चुत काल के लन्ड पर आज ऐसे पटक रही थी मानो पूरा काल को ही अपने अंदर घुसा लेगी ,उन्होंने बस दोपहर का खाने और रात के खाने को ही रुके थे ,काल ने कितनी बार निता के चुत और गांड़ को भरा ,गिनती करना मुश्किल था,काल के लंड को जितना नीता के चुत को मारने में मजा आता था वैसा किसीके साथ भी नही आता था ,काल ने अपने लंड से निता की लाल लाल गांड के छेद में माल भरकर ही सुबह को निता को छोड़ा था ,
काल जब अपने कमरे में नहाने गया तो नेत्रा ने उसको इतना ही पूछा कब तक मेरी माँ को चोदते रहोगे ,जरा अपनी बीवी पर भी ध्यान दीजिये ,काल के कान लाल हो गए थे यह बात सुनकर ,उसने अपने कपड़े पहने और चाय पानी पीकर घर के बाहर निकल गया ,काल को अब अपने महानाग बनने के बाद ऐसा लग रहा था वो 24 घण्टे सेक्स के बारे में ही सोच रहा है ,अब इस का क्या उपाय करें ,काल मन्दिर के पीछे बने जंगल मे अदृष्य बनकर घूमने लगा ,उसे अब किसी भी लड़की के सामने जाने का डर सता रहा था ,वो अब किसी हवसी की तरह हर लड़की को देख रहा था ,नरगिस और सनम से बात करके 3 दिन होने को आये थे ,नेत्रा और वो जब विषलोक गये थे उस दिन सुबह ही उनसे बात हुवीं थी ,उन्हें तो उसने यही सोचा था कि उसे विषलोक में समय लग सकता है ,इसीलिए उसने यह बताया था कि वो सीधा मुंबई में मिलेगा 7 दिन बाद ,हम थोड़ी पहाड़ी इलाको में है शायद फोन लगे नही ,उनको यकीन होने के लिये उसने अपने शक्ति का अभ्यास जिस जगह पर करता वहां जाकर एक पहाड़ के पास खड़े होकर एक विडियो कॉल किया था ,काल ने भले ही शक्कल बदली हो पर दिल नही बदला था ,अगर वो ऐसा अपने हवसी भावना के साथ 4 दिन बाद सबके साथ मुम्बई में रहेगा तो सब पर गलत असर हो सकता है ,भले ही वो सब उसके साथ चुदाई करना चाहती हो, लेकिन अब काल मे हवस भर गई थी ,और वो सब दिल से उसे प्यार करती थी ,काल को सब को एक अच्छी जिंदगी देनी थी (ना कि अच्छी तरह चोदना था ) और इसके लिये उसे सबसे पहले अपनी हवस कम करनी थी ,
काल ना कोई गुरु था ,ना कोई समझाने वाला , फिर भी उसके पास इतनी शक्तिया होने पर भी उसका दिमाग खराब नही हुवा था , कोई दूसरा होता तो अपनी शक्तियों के साथ इस कामवासना में अबतक क्या नही कर जाता ,पर काल तो इसे कम किस तरह किया जाए इसिका रास्ता ढूंढ रहा था ,जंगल में एक पेड़ के नीचे काल बैठकर अपने ही खयालो में खोया था ,तभी उसे किसी की आने की आहट हुवीं उसके सामने बहुत ही बड़ी और सुंदर दो अश्वमानव सुंदरियां थी ,उनको काल के होने का कुछ पता ही नही था, वो दोनो अपनी ही बातो में काल जिस पेड़ के पास बैठा था उसी के छाव में आकर वो आराम से बात करने लगी, पहली,बानी तू नही जानती शक्ति मिलने के बाद उसके साथ उसके फायदे भी है और नुकसान भी ,जो नुकसान का हमेशा ध्यान रखता है ,उसे टालता है वही अपनी शक्ति का सही इस्तेमाल कर सकता है ,
दूसरी (बानी),माला तुमको कोई गुरु या बाबा बनना चाहियें तुम कोई भी बात हो उसे पूरी तरह जानकर ही अपना मत रखती हो ,
माला ,बानी में हम दोनों पहली जुड़वां संतान है अश्व मानवों में,जिस तरह आज तक हम दोनों हमारे अंदर कितनी ताकते है जान नही पाये ,उसी तरह सर्पिणी और विशाखा है ,हम चारो की एक ही समस्या है कि हमे आजतक हमारा जीवन साथी नही मिला है ,
बानी ,माला सर्पिणी की बाते सुनकर नही लगता काल ही उन दोनों का पति हो सकता है ,हजारों साल में पहली बार दोनो का दिल मे किसी को देखकर कामवासना का जन्म हुवा है,हिमांनी भी तो काल की पत्नी ही बनेगी ऐसा उसके जन्म के बाद से कहा गया था ,
माला, बानी ,काल की शक्तियां पहले ही बहुत ज्यादा थी ये हमने मुकाबले में देखा था अब तो वो महानाग बन गया है ,उसके पास कितनी ही नई शक्तिया होगी अब ,वह अपने नई शक्तियों के साथ कितनी जल्दी खुद को सम्भल पाता है ,ये देखने वाली बात होगी ,और महानाग में क्या शक्तिया है ये किसी को पता नही है ,वो तो पहली बार ही सबके सामने आया है काल के रूप में ,काल ने जिस तरह सर्पिणी की मदद की उसे बचाया ,मुझे लगता है वही भेड़िये मानव को वापिस ला सकता है काली घाटी से ,उस कोहिम ने कितने ही मानवभेडियो को अपने काली घाटी में बंदी बनाकर रखा है कितने सालो से ,
बानी,माला उस काली घाटी में ऐसा क्या है जो वहाँ पर हम लोगो की कोई शक्ति काम नही करती ,यहाँ तक के हम अपनी ताकद की मदद से वहा क्या हो रहा है वह देख भी नही पाते
माला ,बानी यह बात कोई नही जानता कि काली घाटी में हमारी शक्तिया काम क्यो नही करती ,नही तो अभी तक हम सबने मिलकर काली घाटी पर हमला करके उन सब मानवभेडियो को बचा लिया होता ,
बानी ,तो काल की शक्तिया वहाँ काम करना बंद नही करेगी अगर वह वहा गया तो ,भले ही काल अब महानाग बन गया है लेकिन उसीकी भी शक्तिया वहां काम करेगी की नही यह हम भी तो नहीं जानते,उसका वहाँ पर जाना खतरे से खाली नही होगा,
माला ,बानी लेकिन काल को एक कोशिश करके देखनी चाहिए ,काली घाटी में जाकर अगर उसकी शक्तिया वहा पर काम कर गई तो वो कोहिम को अच्छा सबक सिखा सकता है ,और मानव भेड़ियों को भी बचा सकता है ,
माला और बानी अपनी बातें करती वहां पर ज्यादा देर नही रुकी वो वहां से चली गई ,काल उनकी बातें को सोचता उन दो अश्वसुंदरियों के शरीर को देख रहा था ,चार पैरों के ऊपर लड़की का आधा शरीर ,वह दोनो आम घोड़ो से काफी ऊंची और तगड़ी थी ,उनके जो लड़कियों का कमर से ऊपर का शरीर पकड़ के उनकी लंबाई 15 फिट से ज्यादा थी ,उनके चेहरे बहुत ही ख़ूबसूरत थे , उनकी चुचिया इतनी बड़ी थी कि काल के दोनो हाथो में मिलकर भी पूरी नही आ सके ,दोनो एकदम सफेद कलर की थी ,काल का लंड तो उनकी घोडी के शरीर मे पीछे से दिख रही बड़ी सी चुत की खुशबू से ही टनटना रहा था ,जब बाते करते वक्त बानी एक बार अपनी चुत से पेशाब कर रही थी ,तो उसके तेज खुश्बू से काल को ऐसा लग रहा था जाकर सीधा उसकी चुत को मुह में भर ले और उस पेशाब को पी ले ,पर उसने अपने आप को रोक के रखा था ,जब वो दोनो चली गयी ,काल अपने मन मे साला पहले औरतो की चुत की महक से पागल हो रहा था ,अब घोड़ियों की चुत देखकर उनको चोदने का मन कर रहा है ,अब तो रस्ते पे घूमने वाली कुतियों को देखकर कहि में चोदना ना शुरू कर दु ,जब से उन काली नागिनों को भोगा है में चोदने के लिये पागल ही हो गया हूं,काली घाटी में अगर यह काम वासना बन्द हो गई तो बहुत अच्छा होगा ,साले उस कोहिम को तो वैसेही मारना था ,बहुत पाप कर चुका है वो ,मेने उसके तीनो लड़को के दिमाग पढ़े है ,मुझे काली घाटी का रास्ता तो अंगारा से पता चला था जब उसके हाथ पांव तोड़ते वक्त वो अपने घर के बारे में याद करते हुवे रो रहा था ,नेत्रा को कुछ और बात बोलकर मुझे अभी ही निकलना होगा काली घाटी,उसे बता कर गया तो वो साथ मे ही निकल पड़ेगी ,काल ने फिर नेत्रा को बता दिया कि उसे महानाग के ठिकाने जाना है अपनी शक्तियों के बारे में जानने के लिए और वह काली घाटी की और अपने मन की शक्ति से झट से पहुच गया ,काली घाटी एक दुनिया की नजरों से छुपी दुनिया थी, पश्चिम बंगाल के सुंदरबन के जंगलों से ही वहां पर जाने का रास्ता था ,काल अब उसी जंगलों के बीच अदृष्य रूप से काली घाटी के रास्ते पर जा रहा था ,काल एक बड़े झरने के पास पहुचा उसी झरने के पीछे एक रास्ता जाता था ,अंदर 2 घण्टे के उस अंधेरे से भरे पहाड़ से गुजर कर ही काली घाटी में जा सकते है ,उसी रास्ते से काल तेजी से काली घाटी पहुच गया, काली घाटी उसे इसलिए कहा जाता है कि वहा पहुँचने के लिए काले अँधरे से भरे पहाड़ो से गुजरना पड़ता था ,काली घाटी एक मायावी असुरों का बहुत बड़ा ठिकाना था ,उस काली घाटी में हजारों मायावी असुर रहते थे ,जो अपनी बुद्धि और बल के साथ अपने अंदर की मायावी ताकदो से बहुत बलशाली थे ,वह ज्यादा इंसानी दुनिया में कभी किसी के सामने अपने वास्तविक रूप में नही जाते, जाना हो तो वो इंसानों के भेष में ही जाते थे , या गुप्त रूप से वो घूमते थे ,दो बार वो भवानीगढ़ आये थे ,पहली बार नरभेडिये को पकड़ने और कुश्ती मुकाबले में हिस्सा लेने,उनके आने की वजह काल को अंगारा के दिमाग से यही पता चली थी कि उसके पिता कोहिम ने अंगारा को भवानीगढ़ के मुकाबले में इस
साल इसी लिये भेजा था कि अंगारा उस मुकाबले को जीतकर मन्दिर में जा सके ,मन्दिर में कोई चमत्कारी चीज को तलाश उसके अंदर जाकर ही कि जा सकती है ,और मन्दिर में रहने वाली दो भयानक नागिनों को सामना उन असुरों का एक बार हुवा था जब नरभेडिये को पकड़ने उनके कुछ योद्धा आये थे, उसमे उनको दो सबसे अच्छे योद्धा को बुरी तरह मार दिया था उन नागिनों ने ,उस मन्दिर के पास और कुछ ताकते थी जो उन असुरों को दिखती नही थी पर जब वो चोरी से मन्दिर में दाखिल होने की कोशिश करते तो उनके शरीर के टुकड़े करके मार दिया जाता था , अपनी इतनी मायावी आसुरी ताकद के बावजूद वो कौन उनको मार रहा है ये देख नही पाते थे ,इसी वजह से जब कोहिम को मालूम गिरा की उस मन्दिर में चमत्कारि चीज है तो उसने कपट का सहारा लेकर अंगारा को मुकाबले में उतारा था और मन्दिर के परंपरा के अनुसार मुकाबले में जितने वाले को मन्दिर के पूजा का प्रथम मान मिलता है ,और इस परंपरा का सहारा लेकर उसका बेटा मन्दिर में प्रवेश कर सकता है ,और उसे मन्दिर के जो रक्षक है वो रोक भी नही सकते थे परंपरा के नियमों नुसार ,उन्हें पृथ्वी और नरेश के बारे में सब पता था उनकी दोनो की ताकद उनके सामने कुछ भी नही थी ,उनको मालूम था मुकाबले में उनका मुकाबला करने नरेश या पृथ्वी से हो सकता है जो उनके सामने पलभर में हार जाते पर उनके सामने काल नामकी मौत आ गई थी जिसने बुरी तरीके से उनको मार दिया था ,कोहिम अपने बेटे अंगारा के हालात देखकर बहुत ज्यादा भड़क चुका था काल से और जब काल ने उसके दो और बेटे गगन और देबन को मार दिया था विषलोक में तबसे वो काल के खून का प्यासा था ,कोहिम को बस काल की तलाश थी और काल इस वक्त उसके शहर में दाखिल होने वाला था ,
काल देख रहा था काली घाटी को जो बहुत ही ज्यादा बड़ी थी पहाड़ो के नीचे बहुत ही बड़े जंगलों में बनी थी यह ,यहा पर हजारो असुर काल को दिख रहे थे जो काली घाटी के चारो और बनी एक अदृश्य दीवार के सुरक्षा घेरे में थे ,उस काली घाटी में एक ही आने जाने का रास्ता था जहाँ पर सैनिकों का कड़ा पहरा था ,जो भी उस प्रवेश द्वार से अंदर आता या बाहर जाता उसकी बारीकी से तलाशी ली जाती ,पूछताछ की जाती थी ,उस प्रवेश द्वार पर एक बहुत ही बड़ी असुर की मूर्ति लगीं हुवीं थी ,हर आने जाने वालों को उसके सामने से ही गुजरना पड़ता था ,काल सब देख रहा था,उसने अपने आप को एकं असुर में बदल लिया ,असुर दिखने में इंसान जैसे ही होते है पर उनके शरीर का आकार बड़ा होता है ,असुर 14 से 15 फिट के ऊंचाई के होते है ,पर हर एक का शरीर समान नही होता है इंसानों की तरह कोई दुबला पतला,मोटा ,तगड़ा होता था ,काल ने जब असुर रूप लिया तो वो 15 फिट का एकदम तगड़ा असुर दिखने लगा था ,असुरों के तरह लंबे बाल ,लंबी दाढ़ी मुछे, में वो बहुत ही खूबसूरत असुर दिख रहा था ,उसने भी अपने कमर पर एक लँगोट लगाया था ,लेकिन यहा पर भी उसका लंड ने अपना कमाल दिखाया था जैसा आम इंसान होकर भी काल का लन्ड दुगने से भी मोटा और बड़ा था यहा पर भी उसका लंड और आंड उसी ही तरह आम असुर के मुकाबले दुगने से बड़ा बन गया था , और हमेशा की तरह उसका लन्ड खड़ा ही था जो लंगोट से दिख रहा था ,काल जब उस अदृश्य प्रवेशद्वार से दाखिल हुवा तो उसके आसपास के सब असुर उसके मजबूत शरीर और चेहरे को ही देख रहे थे ,बहुत सी असुर औरते इस तगडे असुर के लंगोट के अंदर दिख रहे असमान्य उभार को ही देख रही थी ,काल उन असुर महिला के कमर और छाती के दो कपड़ो से दिख रही उनके बडी चुचिया और गांड़ को ही देख रहा था ,यहा की आसुर औरते बहुत ही ज्यादा कामुक थी और यहां कोई भी किसीके साथ संभोग कर सकता था ,बस दोनो एक दूसरे के साथ संभोग के लिए तैयार हो बस इतना ही जरूरी था ,यहा बस दो ही नाते थे नर या मादा ,काल एक कतार में चल रहा था जो उसको तलाशी और पूछताछ के लिये असुर सैनिकों तक लेके जा रही थी काल के आगे एक बहुत ही मादक और खूबसूरत असुर औरत चल रही थी जिसके बड़ी सी गांड़ को देखता और उसकी चुत के ख़ुश्बू में खोया चल रहा था ,आगे कतार अचानक थमने से काल उस औरत से टकरा गया ,काल उस औरत के स्पर्श से बिथर गया उसने अपने दोनो हाथ आगे बढ़ाकर उसकी पीछे से ही दोनो चुचिया दबाते हुवे उसकी गांड़ में अपना लंड दबाने लगा ,काल के इस हरकत से उस औरत के मुह से हल्की चीख निकल गई ,उसकी चीख सुनकर कुछ असुर सिपाही आगे बढ़कर उससे पुछने लगे क्या हुवा ,तुम चीखी क्यो ,और ये आसुर तुमसे जबरदस्ती तो नही कर रहा ,
वो असुर औरत ,जी नहीं ऐसी कोई बात नही ,यह मेरे पति जीवा है ,आज जंगल मे कुछ औषधियों के तलाश करते हुवे ,इन्होंने गलतीसे कामशक्ति बढ़ने की दवा खा ली है ,इसी वजह से यह ऐसा कर रहे है ,
असुर सैनिक ,ठीक है ,इसे फिर जल्दी घर लेकर जाओ ,अगर इसने किसी और के साथ ऐसा किया होता तो उसको दंड दिया जाता ,तुम दोनो इस कतार से बाहर निकालो हम सीधे तुम्हारी तलाशी लेकर तुम दोनो को अंदर भेज देंगे
वो असुर सैनिक उस औरत और काल को सीधा उस बड़े से असुर पुतले के पास पहुंचे ,वहां पर पहले ही दो असुरो को पकड़ा था वो दोनो अपने साथ कुछ इंसानों का मास लेकर आये थे, काली घाटी में इंसानी मास नही खाते थे पर ये दो असुर किसी मायावी शक्ति को पाने लेकर आये थे वो मास ,इसी वजह से कतार भी अचानक रुक गई थी ,काल के साथ उस औरत की तलाशी ली गई और दोनो के नाम और क्या काम से बाहर गए ये पुछने पर उस असुर औरत ने बताया,जी मेरा नाम माया है और यह मेरे पति जीवा है हम दोनों जंगल में औषधि वनस्पति लाने जाते है ,जो यहा किसी असुर को बीमार और जख्मी होने के बाद काम मे आती है ,
उस औरत के पास थैले में बहुत सी औषधि वनस्पति भी थे तो सैनिकों ने उन दोनों को अंदर जाने दिया ,वो दोनो जैसे ही उस बड़ी असुर मूर्ति के सामने से गुजरे कुछ ही पल में वो पूरी मूर्ति एक बड़े से विस्फोट के साथ टुकडो में बदल गई ,
उसके बाद उस प्रवेशद्वार को जल्दी से बन्द कर दिया गया ,वहां पर बहुत बड़ी भगदड़ मच गई थी ,वहाँ बहुत से असुर सैनिक जमा हो रहे थे ,
माया अपने एक हाथ मे काल के हाथ को पकड़कर कबसे वहां से गायब होकर काल को अपने साथ लेकर अपने घर पर आयी थी ,काल ने जब उसकी चुचिया दबायी थी उसके बाद ही माया ने उसको एक फूल सूंघा दिया था ,जिसकी वजह से काल किसी कठपुतली की तरह माया के साथ बिना बोले चल रहा था ,
माया जब अपने घर पहुंची तो ,उसके सामने दो लडकिया आयी वो अपने माँ के साथ आये इस खूबसूरत असुर को देख रही थी ,उनमें से एक लड़की बोली ,माँ ,आपके साथ यह असुर कौन है और यह ऐसा किसी कठपुतली जैसा क्यों कर रहा है,
माया , सारा बेटी यह कोई असुर नही है ,यह मुझे प्रवेशद्वार से जब टकराया तभी में इसको जान गई थी यह कोई असुर नही है ,में यह तो नही जान पायी की यह कौन है पर इतना तो जरूर पता लग चुका है कि यह कोहिम को मार सकता है ,सारा ,में कुछ समझी नही माँ ,
माया ,बेटी में असुर राज की बेटी हु मेरे पास कुछ जन्म से ही ताकते है जिस तरह तुम दोनो में है ,मुझे स्पर्श मात्र से ही सामने वाले के बारे में सब पता चल जाता है ,इसने जब मुझे स्पर्श किया तो में तुरंत जान गई के ये असुर नही है ,पर में यह नही जान पा रही थी, कि यह है कौन जो मुझे पहचान में नही आ रहा ,तब मैंने इसको अपने पास रखी नागासुर वटी सुंघाई पर यह बेहोश ही नही हुवा ,जिस वटी को सूंघने 1000 असुर बेहोष हो जाये ,उसे सूंघकर भी यह बेहोश नही हुवा ,और जब हम उस काले असुर के पुतले से गुजरे जो यहाँ पर आने वालो कि शक्ति को अपने अंदर खींच लेता है उस पुतले ने जब इसकी शक्ति छीननी चाही तो वो पुतला ही टुकडो में बिखर गया,सोचो बेटी जिस पुतले के अंदर बड़े से बड़े योद्धा जो कोई भी जाति का हो उसकी पूरी शक्ति खींच कर उसे कमजोर कर देता था वो इसकी शक्ति को झेल तक नही पाया ,यही इस काली घाटी को वापिस असुर घाटी में बदल देगा ,कोहिम जो कभी हमारा सेनापति हुवा करता था उसने मेरा पिता और पति को धोके से मारकर राजा बन बैठा है सैकड़ो सालो से यह उस कोहिम को खत्म करके उसके पाप के साम्राज्य को मिटा देगा ,बेटी तुम दोनो बस एक काम करना इस को जब होश आये इसके सामने मत आना
सारा ,ऐसा क्यों मा ,हम क्यो सामने नही आये इसके
माया ,सारा बेटा तुम और हीरा इसके सामने नही जाओगी बस तुम दोनो अपने कमरे में चली जाओ और जब में बोलू तभी बाहर आना ,
सारा और हीरा दोनो अपने कमरे में गुस्से से चली गई
माया मन मे ,अब इन दोनो को क्या बोलू इसने मुझे कहा स्पर्श किया था ,यह तो उसी कतार में मेरी गांड फाड़ देता अपने उस बड़े से मूसल से ,मेरी गांड़ तो कभी मेरे पति ने नही मारी ,औऱ इसने उसी में अपने लंड को घुसा रहा था ,अगर यह मुझपर मोहित होकर सबके सामने मेरे ऊपर चढ़ सकता है, तो मेरी दोनो बेटियोके यह क्या हाल करेगा
NICE UPDATE BHAI
 

Gurdep

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माया ने काल को अपने कमरे में लेकर गई और एक पलंग पर लिटा दिया ,काल को जब माया उस पलँग पर लिटा रही थी ,उस वक्त काल का लन्ड अपनी पूरी औकात में खड़ा था ,माया जब काल पैर पलंग पर रख रही थी उसकी नजर काल के उस गोरे लाल सुपाडे पर गई ,काल का लंड उस छोटे से लंगोट में कहा छिपता वो अपनी मौजूदगी अपने सर को बाहर निकालाकर दिखा रहा था ,माया अपने पतीसे मुश्किल से बस 5 या 6 बार चुदी जिसकी बदौलत वो दो जुड़वा लड़कियों की माँ बनी थी,अपने पति का साथ उसे एक महीने से ज्यादा नही मिला उसके बाद ही उसको कोहिम ने मार दिया था ,तब से माया काली घाटी में रूप बदलकर रह रही थी ,आज जब काल ने माया की गांड़ में अपना लन्ड घुसाया था और उसकी चुचिया दबाई थे ,तबसे उसकी चुत ने पानी टपकना शुरू किया था,माया बहुत दिनो बाद गर्म हो गयी थी,जब उसने काल के लन्ड को देखा तो उसे छूने के मोह स बच न सकी अपने एक हाथ मे उसे लेकर वो सहलाने लगी ,उस गर्म लन्ड को अपने हाथ मे पकड़के माया को बहुत मजा आ रहा था,अपने दोनो हाथो में लेकर वो उसको ऊपर नीचे कर रही थी , 16 इंच मोटे और 36 इंच लम्बे लन्ड के साथ वो माया ऐसे खेल रही थी, मानो वो उसका मनपसंद खिलौना हो ,काल के उस छोटे फुटबॉल जितने सुपाडे पर कुछ छोटी बूंदे चमक रही थी, जो माया के सहलाने से जमा हो गई थी माया को उसकी तेज महक ने अपने खींच लिया , माया ने अपना मुह उस लंड के सुपाडे के पास लेकर अपनी जीभ से चाट लिया ,माया को वह स्वाद थोड़ा ज्यादा ही नमकीन लगा,लेकिन उसे वह पसन्द भी बहुत आया वो अपनी जीभ से उस लन्ड को चाटने लगी तो उसको और ज्यादा मजा आने लगा ,वो किसी कुतिया की तरह तेजी से उसके लन्ड को चाटने लगी थी ,उसने कभी अपने पति के लंड को हाथ तक नही लगाया तो चुसने की बात बहुत दूर थी ,आज उसको लंड चाटने में बहुत मजा आ रहा था ,कब वो उसके लंड को मुह में लेकर चुसने लगी ,उसे पता ही नही चला वो अपने मुह में इस लंड को अंदर तक लेने की कोशिश कर रही थी ,पर पूरा ले नही पा रही थी ,उसके पति के लन्ड से काल का लन्ड दुगना लम्बा और मोटा था ,माया ने कितने ही असुरों के लंड देखे थे, जब वो जंगलों में औषधि वनस्पति ढूंढेने जाती थी ,
पर काल का लंड ना उन असुरों जैसा काला था औऱ छोटा ,एकदम गोरा लाल जिसको देखकर माया जैसी असर रानी भी ललचा रही थी ,काल का लंड चुसने में माया अपनी सुधबुध ही खो बैठी थी ,लेकिन जब उसे अपनी चुत पर कुछ गिला सा लपलपाता कुछ महसूस हुवा ,माया ने देखा कि उसके लँगोट को काल ने कबसे निकाल दिया है और अपने छाती पर उसके पैरों को रखकर यानी 69 में उसकी चुत पर अपनी जीभ घुमा था माया कुछ कहने वाली थीं कि तभी काल ने उसके चुत के होठो को फैलाकर उसके छेद में अपनी जीभ घुसा दी और चुत को चुसने लगा ,माया के बदन को तेज झटका लगा उसके साथ ऐसा पहली बार हो रहा था जिंदगी में ,जो उसकी चुत को चाट रहा था वो कुछ बोल ही नही पा रही थी बस उसके मुह से कामुक सिसकिया निकलने लगी,काल के जीभ अब उसकी चुत नाच रही थी ,इतने सालों से बन्द इस चुत के झरने ने आज अपना पानी बरसाना शुरू कर दिया था ,काल ने जब अपनी एक मोटी से उंगली उसके गांड के भूरे से छेद में घुसाकर अंदर बाहर करना शुरू किया तो माया चिखती हुवीं झड़ने लगी काल ने भी उसके झड़ने तक कुछ नही किया बस मन लगाकर उसकी चुत का पानी पीने लगा ,जितना माया पानी छोड़ रही थी उतना पानी काल पी रहा था ,माया आज बहुत दिनों के बाद इतना झड़ी थी ,उसका पूरा चेहरा लाल हो गया था ,जैसे ही उसके चुत का झड़ना खत्म हुवा ,काल ने फिर से उसकी गांड़ में उंगली चलानी शुरू कर दी और चुत को चाटना और भी तेजीसे कर दिया माया कुछ पल में ही फिर से गर्म हो गई जब पहले काल ने उसकी चूसना शुरू कर दिया था उसने अपने मुह से लन्ड निकाल कर अपने झड़ने तक बस उसको सहलाती रही थी ,पर अब उसने काल के लन्ड को मुह में लेकर तेजीसे चुसना शुरू कर दिया वो लंड के टोपे पर बने छेद में अपनी जीभ का नोकदार करके घुसाने लगी काल को भी इस असुरी औरत की मुह की गर्मी में आनंद आ रहा था इस बार दोनो साथ मे झड़े ,काल के लंड से जो माल निकल रहा था माया वो लन्ड को अपने मुह के अंदर तक लेकर सीधा पेट मे भर रही थी ,पहली बार लंड चुसने के साथ आज वो लंड का माल भी गटक रही थी ,काल जब इंसान तभी एक चाय के कप को भर दे इस मात्रा में वीर्य छोड़ता था ,अब असुर बनने के बाद तो उसने एक लोटेभर जितना गाढ़ा माल माया को पिलाया था ,माया को उस मलाई को पीने के बाद थोड़ा हल्का सा नशा होने लगा था ,उसकी आंखें भारी हो गयी थी और चेहरे पर एक खूशी दिख रही थी ,उसको काल ने कब बिस्तर पर पीठ के बल सुलाया और उसकी छाती से आखरी कपड़ा निकाल कर उसे पूरा नंगा कर दिया इसका पता भी नही चला ,काल उस गोरी गोरी इतनी बड़ी चुचिया देखकर उनपर टूट पड़ा कभी वो उनको दबाता ,तो कभी काटता ,उसने उन चुचिया को दबादबाकर लाल कर दिया ,उनके बड़े से निप्पल को खींच कर वो उनको भी चूस रहा था ,माया तो को तो कुछ सुध ही नही नही थी काल के चुचिया के साथ मस्ती करने पर वो उसके बालो में हाथ फिराती उसे और बढ़ावा दे रही थी ,काल बहुत देर तक उन बडी कड़क चुचियो को दबाकर नरम करता रहा ,माया की चुत पूरी गिल्ली हो गई थी काल की इस हरकत की वजह से काल ने जब अपने गर्म लंड के टोपे को उसकी चुत पर रखा तो दोनो की आंखे पहली बार एक दूसरे से टकराई ,माया ने अपनी टाँगे उठाकर अपनी दोने बाहें काल के पीठ पर कस ली ,काल की आंखों में देखकर उसने एक बार अपनी आंख झपकाई ,काल भी इस पूरी हरकत से माया की मन की बात (उसको मन की बात सुनाई दे रहीं थीं माया की) समझकर माया की गांड को अपने हाथों में लेकर एक करारा धक्का माया की चुत पर मार दिया ,काल के मूसल ने माया की चुत के। छेद को अपनी औकात से चार गुना बड़ा करता अंदर घुस गया ,माया के मुह से एक जोरदार चीख निकल गई उसे लगा जैसे उसके चुत में किसी ने चाकू घुसा दिया हो ,उसके दिमाग से चुदाई भुत एक सेकंड में उतर गया ,वो काल के पीठ को नाखूनों से नोचने लगी ,उसको अपने दांतों से काटने लगी ,चीख चीख कर उसे अपने ऊपर से दूर करने की कोशिश करने लगी ,पर काल को माया की इन हरकतों ने और गर्म कर दिया उसने और दो जोरदार धक्कों में अपना पूरा लंड माया की चुत में उतार दिया ,माया का तो दर्द से बुरा हाल था ,उसकी चुत में काल के पहले हमलों से ही उसको जानलेवा दर्द हो रहा था ,और जब काल ने और दो हमले किये उसके चुत के अंदर तक तो उसके दर्द की इंतेहा हो गई थी ,उसकी चुत से खून भी टपकने लगा था जो चुत के फटने से निकल रहा था ,वो जोरजोरसे गला फाड़ के रो रही थी काल को मार रही थी पर काल तो जानवर बन गया था आज वो माया की गांड़ पकडर बड़ी तेजी से माया को काटता नोचता चोद रहा था ,माया की चुत में अपने लंड से वो अंदर तक ठोकरें मार रहा था ,माया पागलो जैसी रोती चिखती उसके नीचे पड़ी उसके लन्ड की मार अपने चुत पर झेल रही थी, कब माया की चीखे बन्द होकर सिसकियों में बदली और उसका नोंचना काटना, चूमने चाटने में बदला खुद उसको भी पता नही चला ,माया काल के चुत पर पडने वाले हर धक्के के साथ खुद के कमर को मिलाती अपनी चुत उठा उठाकर उसके लंड को और अंदर लेती अब कामूक आवाजे निकलती काल को और जोरसे चोदने को कहकर उकसा रही थी ,माया बहुत जल्द काल के लन्ड पर अपना पानी छोड़ कर झड गई थी, पर काल ने माया को घोड़ी बनाकर उसकी बड़ी से गोरी गोरी गांड़ पे चाटे मारकर उसे लाल करता चोद रहा था ,माया की चुत चोदने के साथ अब काल उसके गांड़ के छेद में पहले एक उंगली से डालते हुवे उसकी गांड के अंदर बाहर करता अब उसमें दो दो उंगलिया अंदर तक डालकर गांड़ के छेद अच्छे से चौडा कर रहा था ,माया काल के इस तरह के हमलों से हर पांच मिनट में झड रही थी ,कालने माया को अब कुतिया बनाकर उसकी चुत को चोद रहा था अब उसके लंड भी अपना माल इस गर्म चुत में खाली करना चाहता था ,कालने माया को दो तीन तूफानी धक्के मारकर अपना लंड उसकी चुत में अंदर तक घुसाकर अपना माल छोड़ने लगा ,माया को भी इस गर्म माल की बौछार अपने चुत में बहुत पसंद आ रही थी ,काल ने अपने लंड से आखरी बून्द तक माया की चुत में खाली करके ही हटा था,माया पेट के बल अपनी गांड़ ऊपर करके पड़ी थी,उसे अपने चुत में काल का गर्म माल एक सुकून दे रहा था ,अपने चुत में इतना दर्द झेलने के बाद उसी चुत में अब मीठी दर्द की तरंगें पूरे बदन के साथ आत्मा को सुकून दे रही थी ,तभी उसे अपनी गांड के छेद पर काल की उंगलियां महसूस हुवीं, काल के उंगलियों उसके गांड़ के छेद में अंदर बाहर कर रहा था कुछ चिकनाई भी उसे काल की उंगलियों पर महसुस हो रही थी ,माया अपनी आंख बंद करके अपने शरीर मे फैले सुकून के साथ अपनी गांड ऊपर करके अपनी गांड़ के छेद में घुस रही उंगलियों का मजा ले रहीं थी ,काल ने माया के मन से यह जान लिया था कि घर मे चिकनाहट की चीज कहा मिलेगी ,उसने वो लेकर पहले अपनी अंगलियो से माया की गांण्ड के छेद को चिकना करता रहा ,फिर कुछ देर बाद उसने माया की गांड के उस लाल छेद में अपना लंड के टोपे को रखा और माया के कुछ समंझने से पहले ही अपने लंड को माया की उस नरम गांड के लचीले छेद में टोपे से 9 इंच तक घुसा दिया,माया ने जैसा अपनी चुत मरवाते वक्त तमाशा किया था फिर वैसा ही तमाशा करती रही पर काल इस बार तो दुगनी तेजी से उसकी गांड मारता रहा ,जब काल अपना माल उसकी नरम गांड में अपना माल भरकर उसके साइड में आकर लेटा ,माया का रो रो कर बुरा हाल हो गया था ,काल ने उसकी गांड में अपना माल छोड़कर जब उसके बाजू में लेटा ,तो माया वैसे ही लेटी अपनी आंखों से पानी बरसा रही थी ,काल ने जब उसकी आँखों से बहते पानी को देखा तो उसने माया को किसी बच्चे की तरह अपने पेट पर खीच लिया माया भी एक बच्ची की तरह उससे चिपक गई ,काल उसके आसु को पोछकर उसे चूमता चुप करता रहा ,लेकिन दोनो ऐसा करते फिर से गर्म हुवे लेकिन इस बार काल ने किसी प्रेमी की तरह बहुत प्यार से उसकी चुत मारी और अपना माल उसकी चुत में छोड़ा ,उसकी इस चुत की चुदाई से खुश होकर माया ने उसे अपनी गांड़ मारने को दे दी ,काल ने ज्यादा दर्द ना देते हुवे बहुत देर तक माया की गांड़ मारकर उसको गांड में लन्ड लेने का सुख का अहसास कराया ,दोनो एक दूसरे में अब इतना डूब गए थे कि ना उनको समय का ध्यान रहा ना वक्त को ,काल ने दोपहर से जो माया की चुत मार रहा था वो रात तक गांड पर खत्म हुवीं पर दोनो का मन नही भरा था ,वो सुबह तक लगे रहे ,काल ने माया की चुत और गांड को मारमार कर अपने लंड के साइज के हिसाब से बढ़ा करता रहा ,माया को उसने सुबह तक 3 बार अपना माल पिलाया तो बार उसकी चुत के पेशाब का मजा लिया ,माया ने भी हक़ से काल के पेशाब को 2 बार पिया और अपनी प्यास भुजाती रही ,सुबह होने से ठीक पहले माया काल के लन्ड का माल पीकर उठी ,उसे अहसास हो गया कि दोपहर से उसने कुछ नही खाया है ना कि इस मेहमान ने उसने अपने चुत और गांण्ड को एक कपड़े से पोछकर साफ किया जो काल के माल से भरी हुवीं थी ,फिर काल को देखा जो पलँग पर नंगा ही लेटा था ,माया ने अपनी छोटी चोली और लँगोट को पहनकर काल के नंगे बदन पर एक कम्बल डाल दिया,जब वो अपने कमरे से बाहर जाने लगी तो उसने देखा उसके कमरे का दरवाजा खुला है और दरवाजे के बाहर उसकी दोनो बेटिया नंगी जमीन पर सो रही है,उनके दोनो के चुत से बहते पानी के दाग उनकी जांघो पर सुख गये थे ,माया को याद आ रहा था कि रात को कैसे चिल्लाती हुवे चुद रही थी ,यहा पर संभोग करना खुला था कोई भी किसके साथ भी चुदाई कर सकता था ,पर माया आज पहली बार अपनी जवान बेटियोके सामने चुदी थी ,इस अनजान मेहमान ने माया को चुदाई का वो ज्ञान दिया था कि माया अब उसकी दीवानी हो गई थी ,उसे वो अनजान से अब मोहब्बत हो गई थी ,माया को अपनी नंगी बेटीयो को देखकर अब समझ आ गया था कि उसकी बेटियां अब काल से जरूर चुदेगी ,माया ने दोनो की गांड़ पर प्यार से चपत लगाकर उन्हें उठाकर नहाने भेज दिया, वो खुद भी नहा धोकर कुछ खाने पीने का सामान बनाने लग गई ।
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sunoanuj

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Ab iska updates aayega ya nahi
Nahin mitr yeh kahani ab band ho chuki hai… lekhak bhai ka kuch pata nahin hai Kanha hain woh ….
 

Gurdep

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Update 66
शिवा रात के 8 बजे घर पहुच गया ,नरगिस और सनम ने सबको बता दिया था की शिवाक़े सब रिपोर्ट नार्मल है वह बिल्कुल ठीक है,सबको यह जानकर खुशी हुवीं, रात को 10 बजे सबके साथ खाना खाने के बाद कुछ देर उनसे बाते करने के बाद अपने कमरे में चला गया और वहां से सीधा नेत्रा के पास पहुचा जो हिमांनी से बाते करती बेड पर बैठी थी, उसने और हिमांनी ने खाना खा लिया था उनके साथ रात के 12 बजे तक वो बाते करता रहा ताकि दोनो का यहां पर मन लगा रहे ,पर उसको उन दोनों को होटल में रखना पसंद नही आ रहा था इसलिए उसने नेत्रा से कहा कि कल तुम काल बनकर मेरे साथ घर चलो बाकी में देख लूंगा कल तुम यहाँ नही रहोगी ,तुम मेरी बीवी हो और मेरी जिम्मेदारी भी ,तो नेत्रा ने कहा मेरी जगह केतकी को तुम काल के रूप में लेकर चलना ताकि वह भी हमारे साथ रह सकेगी काल बनकर ,शिवाने यह बात मान ली ,सबसे पहले उसने जो सनम और बाकी बहनो को छेडा था वो यादे उनके दिमाग से मिटा दी ,सनम और बाकी उसकी बहने काल से बहुत नाराज थी ,भवानीगढ़ में उसकी शादी जब नेत्रा से हों रहि थी तब उनको बहुत गुस्सा आ रहा था काल पर उसकी छ्चोरी हरकते याद करके ,उन्होंने पूजा को भी बताया था ,तो पूजा ने उनको कहा इसने भी मुझे छेड़ा था मुंबई में ,और मोना को भी मेने यह बात नेत्रा को बताई भी थी पर वो मानी नही ,उसके बाद काल इन सबका दुश्मन बन गया था ,शिवा ने फिर काल की यादे पूजा और मोना के दिमाग से निकाल दी ,उसने उन लड़कियों के दिमाग मे यही रखा कि काल से वह पहली बार भवानीगढ़ मे ही मिली थी ,सबकी यादे रात में ही ठीक करके भवानीगढ़ के जंगलों में पहुंच गया ,जहा सब भेडियमानव रहते थे ,काल के रूप में वहाँ जाकर उनके घर देखे तो उसने अपनी माया से उन सबके लिये एक बेहतर और सुरक्षित ठिकाना बना दिया और उसको दुनिया की नजर में न आये ऐसा भी बना दिया ,जिससे सब भेड़िये मानव खुश हो गए ,पहले उनके घर ठीक थे और उन्होंने अपनी सुरक्षा भी की हुवीं थी ,पर काल ने उसको 100 गुना बेहतर बना दिया , सर्पिणी से मिलकर उसने आज पहली बार मन्दिर के चमत्कारी शक्ति के बारे में पूछा जो उसने उसे सब बता दिया ,सिर्फ विशाखा वहां बिजली से बाते करने की वजह से ,शिवा के चमत्कारी पानी पीने की बात काल को पता नही चली ,मन्दिर का सब राज जानकर काल को यही लगा उसको यह शक्तिया मन्दिर के उस चमत्कारी शक्ति की रक्षा के लिये ही मिली है वर्ना उसको शक्तिया मिलने का क्या कारण और उसकी किस्मत उसको मुकाबले से लेकर भेडियमानव को बचाने तक यहा नही लाती ,नेत्रा जैसी पत्नी जो कालनेत्री है उसके नसीब में इसलिये आयी ताकि वो मन्दिर की सुरक्षा कर सके ,काल ने सर्पिणी से वादा किया कि वो आज के बाद उनका मन्दिर के सुरक्षा में हर कदम पर साथ देगा ,किसी गलत हाथो में वो शक्ति नही जाने देगा ,सर्पिणी के साथ सब खुश हो गए जो काल जैसा महाबली उनके साथ है इस काम मे ,काल वहां से जाने वाला था पर बिजली और उसकी बेटीयो की मन की बात जानकर उनको मन मे बात करके थोड़ा जंगल मे अंदर जाने को कहा ,और जब वो उनके पास जा रहा था तो बाकी भेडिया मादा जो कवारी थी उनकी मन की बाते जानकर उनको 1 घण्टे में जंगल के अंदर आने को कहा ,पहले उसने बिजली और उसकी तीनो बेटीयो को अपने समय मनी में ले जाकर 24 घण्टे चोदा और उनकी आग बुझाई फिर वापिस आकर उसने उन 100 मादा को 48 घण्टे समय मनी में जाकर उनको भी शांत किया अपने धारदार लन्ड से ,ऐसे सुबह 4 बजे वो असुरलोग पहुंच गया और देरी से आने की माफी मांगकर माया और उसकी दोनो बेटीयो के साथ उस मनी में जाकर 48 घण्टे तक उनको बजता रहा और सुबह 6 बजे अपने कमरे में आकर नहाधोकर 7 बजे नास्ता करने नीचे आ गया
शिवा जब भी समय मनी में जाता किसी के साथ तो वो लगातार उन्हें बस चोदता नही था बल्कि समय मनी में उसने बाहर जैसी ही दिन रात की तरह समय बना लिया था वो सुबह नहाता दोपहर का खाना ,रात का खाना 6 घण्टे की नींद लेना इस तरह नही तो उसके लन्ड से लगातार चुदने से कोई मर भी सकता था इसलिए वो इस बात का ध्यान रखता की किसी के शरीर पर बुरा असर ना हो ,अंदर उसका भी आराम और नींद हो जाने से वह तरोताजा रहता था
शिवा ने अपना नाश्ता होने के बाद काल ( जो केतकी बनी थी पाताल लोक से आकर नेत्रा के कहने पर) नेत्रा और हिमांनी के साथ घर आकर सबसे मिलाया की काल उसके बचपन का दोस्त है वो भी मेरी तरह अनाथलय में पला बढ़ा है ,उसकी शादी के बाद रहने के लिये जगह ढूंढ रहा था तो में उसे अपने घर ले आया ,यह हिमांनी नेत्रा की सहेली है यह यहा पढ़ने आयी थी ,तो जबतक उसके हॉस्टल में जगह नही मिलती वो भी यहीं रहेगी ,अगर किसी को एतराज ना हो तो ,
शिवा की बात कोई टाल ही नही सकता ,और वह नेत्रा और काल की शादी में भी सब मौजूद थे ,और हिमांनी कि भी उनसे वहिं पहचान हुवीं थी बाद में सब इस बात को हँसी खुशी मान गए ,हिमांनी को नरगिस ने होस्टल मिलने पर भी यही रहने को कह दिया ,सब खुश थे ऐसे एकदूसरे से मिलकर फिर शिवा उनको छोड़कर आज एक जरुरी काम से निकल गया जो ,मुंबई जाने से पहले अधूरा रह गया था और उसको अब शिवा पुरा करने वाला था ,
मुम्बई से थोड़ी दूर ही भिवंडी के इलाके में बने आलीशान मकान के बेडरूम में दो 42 34 56 और 44 36 54 कि फीगर वाली एकदम ग़ोरी औरते 69 में एकदूसरे की चुत को चाट रही थी और अपनी कामवासना शांत करती बड़बड़ा रही थी
चूस नूरी इस छिनाल को ,आज मुझे झडा दे मेरी बहन,
हा दीदी आज आप और में जबतक नही झड़ंगे तब तक कमरे से बाहर नही जाएंगे ,
नूरी ,हमको चोदने का दम हमारे मर्दो में नही अब बच्चे पैदा होने के बाद हम थोड़ी भारी हो गए तो इसमें हमारी क्या गलती ,इनके लन्ड से हमने बच्चे पैदा किया यही बहुत है इन हिजड़ो के लिये ,साले 6 इंच की लूली को लन्ड के कहते है भड़वे ,
हा रेहाना दीदी हम दोनों के कितने ख्वाब थे कि हमको भी जानदार मर्द मिले, जो हमको चोदचोद कर हमको थका दे ,यह दोनो भाई तो महीने में 6 दिन भी नही चोद पाते थे हमको ,शादी के बाद कोई अपनी बेगम को छोड़ता नही साल भर तक पर ये दो नामुराद शादी के 2 दिन से हमको छोड़कर पैसे कमाने लगे ,जैसे हम कोई चीज है जो घर मे लेकर आये दो दिन उसको देखा बाद में भूल गए,
नूरी हर लडक़ी के अरमान होते है अपने पति से लेकिन हमें पैसा ,जेवर,कपड़ा ,खाना सब मिला लेकिन कोई हमको सही से भोग कर हमको भी शांत करें ऐसा कभी हमारे मर्दो को लगा ही नही,
दीदी शादी के बाद हम दोनों से दो दो बच्चे पैदा करके यह हमको भूल गए है ,मेरी सहेलियों से जब उनकी चुदाई की बाते सुनती हु ऐसा लगता है हमने अपनी जिंदगी जी ही नही कभी सही से ,चुत चूसना तो बहुत दूर इन भडवो ने आजतक हमको पूरा नंगी तक नहीं किया कभी ,बस अपने बाप की इज्ज़त से हम चुप रहकर सब सहते आये है ,
नूरी हमारे बाप और विजय चाचा के डर से कभी कोई हमारे पास नही आया ,और जिस दिन उस नरेश भैया ने तुम्हे छेडने वाले को जिंदा जला दिया था तबसे हमे कोई आंख उठाकर नही देखता ,भले हम कितनी कोशिश करे किसिको पटाने की ,हम रंडिया तो नहीं बन सकते ना कि आओ और हमे चोदो ऐसा कहदे किसी के मुह पे
हा दीदी काश कोई आकर कह दे में तुम दोनो की प्यास बुझा देता हूं ,पर हमारी किस्मत में ऐसा दिन कहा आएगा ,
तभी वहा पर एक आवाज गूंजी ,अगर में तुम दोनो की प्यास बुझा दु तो मुझे क्या मिलेगा ,
दोनो चौक कर बेड से उठकर बैठ गई और यह कौन बोला यह देखने लगी ,तो बेड के सामने एक लम्बा तगडा लड़का एक सोफे पर बैठा उन दोनों को देख कर मुस्कुरा रहा था ,
कोंन हो तुम ,और हमारे कमरे में कैसे आ गए ,रेहाना ने उस अजनबी शख्स को देखकर अपने बदन को बेड पर पड़ी चादर से ढकते हुवे थोड़ी डरी हुवीं आवाज में पूछा ,
तुम दोनो को मैने पहले सवाल किया उसका जवाब दो ,बादमे में तुम्हारे सवाल का जवाब दूँगा ,उस लड़के ने कहा,
हमारे घर मे घुसकर हमसे सवाल करने की हिम्मत कर रहे हो,तुमको थोड़ी भी शर्म नही आतीं किसी के घर मे ऐसा चोरों के तरह घुसकर किसी के निजी जिंदगी में दखल देते हुवे,नूरी ने चिढ़कर कहा
तुम दोनो अजीब पागल औरते हो ,में तुम दोनो की बरसो प्यास बुझाकर तुमको जन्नत दिखाने की बात कर रहा हु और तुम बेवजह बाकी बातो में लगी हो चलो तुमको तुम्हारे जन्नत के दरवाजे की चाबी दिखा देता हूं ,तुम अपने आप सब समझ जाओगी और उस लड़के ने खड़े होकर उन दोनों को सामने अपनी पैंट उतारकर उनको अपना लंड दिखा दिया
रेहाना और नूरी दोनो किसी भुत को देख लिया ऐसी शक्कल बनाकर उस मूसल को देखने लगी जो उनकीं आंखों के सामने झूल रहा था ,उनके कलाई से दुगना मोटा ,गोरा, लम्बा इतना कि कभी किसी घोड़े का लन्ड हो ,दोनो एकटक उस लन्ड को देख रही थी ,
देखो हो गई ना खामोश ,देख कर यह हाल है अंदर लोगी तब क्या होगा ,वही लड़का बोला
तुम तुम क्या चाहते हो हमसे ,रेहाना ने अटकते हुवा पूछा ,
यह हुवीं ना काम की बात ,तो सुनो में तुम दोनो के चुदाई के हर ख्वाब पुरा कर दूंगा ,बस मुझे यह बता दो की तुम दोनो ने किसके कहने हेमा और मधु के लड़कियों को अपने बंगले में छुपा कर रखा था ,उसी लड़के ने पूछा ,
उसकी बात सुनकर दोनो हड़बड़ा गई और उसको पुछने लगीं
तुमको कैसे पता यह सब,और तुम क्यों जानना चाहते हो सब ,कही तुम हम दोनों को ब्लैकमेल तो नही करना चाहते, नूरी बोली,
लंड दिखाकर कोई ब्लैकमेल करता है क्या ,तुम मेरा काम करो में तुम्हारा हिसाब बराबर,वही लड़का बोला
हमारी हेमा और मधु से कोई दुश्मनी नहीं है,हमे तो मालूम भी नही था कि उन दोनोकी बेटीयो को वहां पर रखने वाले है ,अगर हमें पता होता कि उन दोनों की लड़कियों का वहा पर रखने वाले है ,तो हम कभी उसका साथ नही देते ,
तुमने किसके कहने पर यह सब किया था ,वही लड़का बोला,
हम दोनों की कुछ वीडियो उसके पास थी ,जो उसने ना जाने कब बनाई थी वो दिखा कर वो हमें यह सब करने को लगा रहा था ,वो औरत है या मर्द यह भी हमको ठीक से पता नही ,वो हर बार कोई नई नम्बर से नई आवाज में बात करता है ,शायद वो एक से ज्यादा लोग हो ,वो कभी हमारे सामने आयही नही बस फोन पर ही काम बोलता है हमेशा ,रेहाना बोली ,
ठीक है आज के बाद तुमको जब भी वह फोन करे और कोई काम करने को कहे तो तुम सबसे पहले मुझे बताओगी ,में तुम्हारी वीडियो उससे तुमको लाकर दूँगा ,और अगर तुम दोनो को मुझसे चुदने का मन है तो बोला नही तो वापिस चला जाता हूं ,
नही नही तुम रुको हम तुमसे तुम ,दोनो को उसको रोकना था पर वह कह नही पा रहीं थी, उसने हसके कहा ,में समझ गया ,मेरा नाम काल है
और वह उन दोनों के बीच मे जाकर लेट गया और उन दोनों के बदन से चादर खीच ली ,काल आज ऐसी गदराई घोड़ियों देखकर बहुत खुश हुवा था ,ना इनकी चुत ज्यादा चुदी थी ना गांड की सील खुली थी आज काल 10 बजे इनके घर आया था और अभी साडे दस का समय हुवा था उसको 1 बजे तक घर पे खाने को जाना था मतलब 2 घण्टे धरती के हिसाब से और 48 घण्टे मनी के हिसाब से ,इन अजब गजब को आज काल बहुत ही जबरदस्त चोदने वाला था ,उसे पहली बार इतनी तगड़ी फिगर की औरते मिली थी जो इंसान थी ,वो असुर औरते तक चोद चुका था पर इंसानों में ऐसी फिगर ,मोटी तो नही पर एकदम भरी यह दोनो काल को पसन्द आ गई थी, आखिर उसके लंड के लिये कोई नया तगडा माल जो मिला था उसको ,
काल यहां पर इसीलिये आया था कि जब वो अस्पताल से वापिस आ रहा था तब यह दोनो नुसरत से बात कर रहींथी और काल उनकी बातें सुनकर हस रहा था तभी अस्पताल में हेमा और मधु को देखकर नूरी के मन मे उनकी बेटीयो को अपने यहाँ अगवा करके रखने की बात याद आ गयी थी ,जो शिवा ने सुन ली थी ,इसीलिये वह आज यहां सब जानने आया था ,अस्पताल में ही नूरी के मन मे अपने आप को बहुत बुरा भला कहते काल ने सुन लिया था उसको बहुत अफसोस था इस बात का की उनसे बहुत बड़ी गलती हो गयी है ,तभीसे काल जान गया था यह दोनो तो बस मोहरे है खिलाड़ी पीछे छुपकर खेल रहा है ,उसके मोहरों को सबसे पहले अपनी तरफ करने ही आज वो आया था ,काल सोच रहा था मेने विषलोक में जाकर विषलोक तबाह किया विषदंश को मारा ,कालीघाटी में घुसके कोहिम को मारा ,और उसे यहा एक आदमि का पता नही चल पा रहा है ,काल के पास बहुत ताकते थी वह किसीकी सोच जो अभी चल रही है उसे सुन और देख सकता था पर किसीके चेहरे को देख कर वो उसके बारे पिछला कुछ जान नही पाता था ,उसको अब उस अजनबी की तलाश थी जो सिमा और निता की ज़िंदगी बर्बाद करना चाहता था ,पूजा के साथ खेल करने वाला यही था ,अब काल इस खेल में उतरने वाला था ,और शुरवात मेही उसके हाथ मे दो मस्त तगड़ी घोड़िया मील गई थी ,।
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Gurdep

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Update 67
काल ने जब अपने समय मनी में उन दो घोडीयो को हाथ पकड़कर ले गया था ,उनके नरम हाथ का स्पर्श से काल को अंदाजा हो गया था यो दोनो बहुत ही ज्यादा नरम है इनको शायद इतने सालों में सहीसे मसला नही गया है , इन दोनों का शरीर इस तरह बनने का कारण बचपन से ज्यादा और अच्छी खुराक, बाप की तरह पूरा ऊंचा कद और शरीर माँ की तरह चुचिया और गांड में बेहद भरा हुवा मिला था दोनोको ,शादी के बाद खुद का मोटापा कम करने से पेट तो कम हुवा पर गांड और चुचे कुछ ज्यादा ही बढ़ गए ,हमेशा सहेलियां और रंगीन फिल्में देखकर अपने पति से वैसेही चुदने का मन करती पर वहां सिर्फ बेरुखी ही मिली थी ,
काल ने जब रेहाना के 90 किलो से ज्यादा वजनी शरीर को अपने दोनो हाथो से उठाकर बेड पर पीठ के बल किसी गुड़िया कि तरह लिटा दिया तो वो इस लड़के की ताकद से हैरान थी ,काल ने उसकी 44 की बड़ी सी दोनो चुचिया अपने मजबूत पंजो में पकड़ ली ,गजब की चुचिया थी इतनी बड़ी होकर भी लटक नही रही थी बल्कि तनी हुवीं थी ,काल के मर्दाना हाथो से अपनी चुचिया मसल ने रेहाना सिहर गई ,यह कोई पहला मर्द था जो उसके चुचिया से खेल रहा था ,आजतक उन्हें उसकी बहन नूरी और खुद के हाथों के सिवा किसी ऐसे मसला नही था ,पर कहा वो उनके जनना हाथ और कहा ये ताक़दवर मर्द के बड़े से पंजे की पकड़ ,काल ने उसके फुले हुवे निप्पल को मुह में लेकर चुसना शुरू किया तो रेहाना के मुह से एक मजेदार सिसकी निकल गई ,आ ssssअम्मी ,काल किसी किसी बच्चे की तरह उसके नीपल को चूसता अपने दोनो हाथोसे उसकी गांड के नीचे लेकर उन्हें भी मसलने लगा ,उसके हाथों में रेहाना की 54 साइज की गांड को वो दबाकर उसे लाल कर रहा था रेहाना तो इस हरकत से अपने सिर को इधर उधर पटक के अपनी दोनो हाथ की दोनो मुठियो से चादर कस के पकड़ ली और मुह से जोर जोर से अपनी अम्मी का नाम लेने लगी ,नूरी बेड पर बाजू में बैठी ये सब देखकर गर्म हो गई थी उसने बिथरकर काल को पीछे से पकड़ कर उससे चिपक गई और उसकी गर्दन को चाटती उसकी पीठ पर अपनी 42 की दोनो चुचिया घिसने लगी ,काल को बड़ा मजा आ रहा था अब उसने थोड़ी देर रेहाना को चुचिया मसल कर ही झडा दिया,और अपनी पीठ पर चिपकी नूरी को अपनी बाहों में भरकर उसके लाल सुर्ख होठो को चुसने लगा ,नूरी भी उसको किस करती अपनी चुचिया उसके सीने में दबाती उसके बालो में हाथ फिराती उसके गोद मे बैठ गई ,थी ,काल बेड पर नूरी को सुलाकर उसके ऊपर पूरा चढ़ कर उसको किस कर रहा था उसके गांड को दबाता अपना मोटा सा लंड का टोपा उसकी गीली चुत पर घिस रहा था ,नूरी इस गर्म लन्ड के टोपे को अपनी चुत के पानी से गिला कर रही थी ,उसकी चुत किसी भट्टी की तरह गर्म थी ,उसके चुत का वो लाल लाल छेद अपने ऊपर इस लंड की रगड़न अपना पानी छोड़ रहा था उसके चुत का दाना एकदम फूल सा गया था ,नूरी भी अपने आप को इस हमले से ज्यादा देर बर्दाश्त न कर सकी और अपना पानी छोड़ती झडने लगी ,रेहाना अपनी आंखो से उस मर्द को देख रही थीं जिसने उन दोनों को सिर्फ चुम कर और चुचिया दबाकर ही झडा दिया था ,नूरी भी अपनी सांसो को दुरस्त कर रही थी और आराम से बिस्तर पर लेट गई थी ,
काल ने रेहाना के पास जाकर उसकी दोनो टांगो को अपने मजबूत हाथो से पकड़कर बिस्तर पर पीठ के बल लेटी रेहाना के सर तक दबा दिया रेहाना और नूरी एकदम लचीले बदन की मालिक थी काल जिस तरह उसके बदन को मोड़ रहा था उसी तरह वो आराम से मुड़ रही थी जिसकी वजह थी वो अपने आप को फिट रखने के और पेट कम करने के लिये करती आयीं सालो की मेहनत का नतीजा था ,
काल के सामने रेहाना की बड़ी सी फूली हुवीं चुत खुलकर सामने आ गई थी ,ऐसी गोरी लाल चुत के छेद के नीचे से काल को इस बडी गांड का भूरा सा छेद नजर आ रहा था जो एकदम छोटा सा दिख रहा था ,काल ने अपनी जीभ से उसकी चुत को को जब चाटना शुरू किया तो रेहाना मजेसे सिहर गई उसकी बरसो की तमन्ना आज पूरी हो रहीं थी ,जो उसकी चुत को चाटते हुवे काल उसके दिल को आज खुश कर रहा था अपने मुह से मादक सिसकिया लेती आसमान में उड़ रही थी ,काल चुत को चूसते हुवे उसके गांड के छेद को भी बीच बीच मे अपनी जीभ की नोक को उसके अंदर डाल कर उसको भी छेड़ रहा था ,रेहाना का पूरा बदन पसीने से भर गया था उसकी चुत काल को अपना पानी पिला रही थी और गांड़ में काल की जीभ घुसते ही उसको एक करंट लग रहा था वो ज्यादा देर इतने हमले झेल ना सकी और एक चीख के साथ अपनी चुत का पानी फिर छोड़ दी थी ,काल ने भी उसके उस नमकीन पानी को पूरा चाट कर साफ कर दिया और रेहाना की टाँगे छोड़ दी जो उसने कबसे उठाकर रखी थी ,काल फिर उसपर चढ़ गया और उसके गुलाबी होठो को चूसता उसको उसके है चुत के पानी का स्वाद देने लगा ,रेहाना भी अपने इस आशिक के होठों को बड़े प्यार से चूस कर अपनी चुत चुसने का शुक्रिया अदा कर रही थी काल अब ज्यादा गर्म हो गया था उसने रेहाना के होठो को चूसते हुवे उसकी गांण्ड को पकड़ के अपने लन्ड को उसकी गीली चुत के छेद पर अपने टोपे को गिला कर करके घिस रहा था उसने अपने लन्ड को अच्छा गिला करने के बाद एक जोरदार धक्के के साथ अपने लंड को उसकी चुत में आधा घुसा दिया था ,रेहाना जो कबसे मजे की वादियों में उड़ रही थी अपने चुत में इस बड़े से लन्ड के घुसते ही दर्द से चिल्लाने लगी उसकी चुत में उसे बेहिसाब दर्द हो रहा था उसको ऐसा लग रहा था मानो उसकी चुत में किसीने गर्म लोहे का पाइप घुसा दिया हो ,उसकी चुत का मुह हद से ज्यादा बड़ा हो गया था ,काल को भी इस कसी चुत में बड़ा मजा आने लगा था ,उसने एक और धक्के में अपना पूरा लंड इस घोडी के चुत में उतार दिया था ,रेहाना की चुत अब फट कर भोसड़ा हो गई थी ,इतने बड़े लन्ड ने उसकी चुत के छोटे से छेद के चिथड़े उड़ा दिये थे ,उसकी चुत पानी के साथ अब खून भी टपकने लगी थी ,पर काल ने रेहाना की चुत में एक तूफान मचा दिया था ,वो रेहाना के चीख को अनसुना करते उसके होठो के रस को पिता किसी जंगली सांड की तरह उसके चुत को चोदने में लगा था ,रेहाना अपनी बड़ी सी गांड़ टिकाती इस लन्ड के मार को झेल रही थी ,काल इतने तेज धक्के मार रहा था और रेहाना उसको हर धक्के के साथ उसकी गांण्ड 5 इंच तक नीचे बेड पर दब जाती उसके मार को सह रही थी ,रेहाना का दर्द ज्यादा देर तक नही रह वो भी जल्द ही अपनी गांड़ उठाकर उस मूसल को अपने अंदर लेने लगी काल के लन्ड के मारसे उसकी चुत ने अपना पानी छोड़कर हार कबूल कर ली पर काल के लन्ड को ये हार कबूल नही हुवीं ,कालने उसको घोडी बनाकर उसकी बड़ी सी गांड़ को पकड़ के अपने लंड को उसकी चुत में फिर दौड़ा दिया उसकी गांण्ड को अपने दोनो हाथो की मार से उसने लाल करते हुवे उसकी चुत में अपने धक्के लगाने जारी रखें ,नूरी अपनी बेहन की इस चुदाई को आंखे फाड़ कर देख रहीं थी ,काल जिस तेजी के साथ उसकी बहन को चोद रहा था और उसकी बहन मजे में चिल्ल्ला रही थी यह देख कर नूरी भी गर्म हो गई थी,जब रेहाना अपने चुत का इस चुदाई का दूसरी बार पानी निकाल रही थी ,तब नूरी काल को फिरसे पिछसे चिपक गई थी ,जैसे ही रेहाना झड गयी काल ने उसे छोड़कर नूरी को अपने बाहो में भरकर खड़ा होकर उसको अपनी गोद मे उसकी गांड से पकड़कर उठा लिया नूरी ने अपनी दोनो टाँगे उसके कमर पर लपेट कर उससे लिपट गई काल उसके होठो को चुसने लगा और उसकी गांड़ को अपने हाथोसे दबाकर उसकी चुत पर अपने लन्ड को चुभोने लगा ,नूरी ने अपने एक हाथ से दोनो हाथ मजबूती से काल के गले मे डाल कर उससे लिपट गई थी ,कालने अपने लन्ड को नूरी के चुत में एक जोरदार धक्के के साथ अंदर उतार दिया ,नूरी उस वक्त अपनी बड़ी सी गांण्ड उठाकर उसके लन्ड पर घिस रही थी इस वजह से काल के एक ही धक्के में उसका लन्ड नूरी की चुत में जड़ तक घुस गया था ,नूरी के मुह से एक दर्दनाक चीख निकल गई ,काल के लन्ड ने उसकी भी चुत को पूरा खोल दिया था ,उसकी चुत अंदर तक चिर गई थी और अपना खून बहा रहीं थी ,उसके दर्द से आसु बह रहे थे पर काल उसकी गांड को थामे अपने लंम्बे धक्के लगाने का काम जारी रखे हुवे था ,नूरी का रो रो कर बुरा हाल था वो अपने दर्द में रोती इस जानवर के गोद मे चुद रही थी ,काल ने उसको उसी पोझ में चोदते हुवे बिस्तर पर ले गया ,और अपना लंड बिना निकाले उसे पीठ के बल सुलाकर उसके चुचिया को दबाके उसे फिर चोदने लगा जल्द ही नूरी भी अपना दर्द भूलकर मजे से चुदने लगी और काल को अपनी बाहों में भरती उसको चूमती उससे अपनी गांड उठाकर चुदने लगी ,अपने अंदर इस गर्म लन्ड की मार से उसने अपना पानी एक चीख के साथ छोड़कर अपनी चुत की खुशी दिखाने लगी ,पर काल उसको और खुशी देंना चाहता था उसने नूरी को पेट के बल लिटाकर उसके 56 के बड़ी सी गांण्ड को अपने मजबूत पंजो से फैलाकर उसके चुत में अपना लन्ड उतार दिया और उसकी गांड़ को छोड़कर उसके पीठ पर लेट गया उसकी नरम गांण्ड पर थाप थाप की आवाज करता उसके चुचिया दबाता उसको चोदने लगा नूरी उसके वजन के नीचे दबी उसके लंड के मार कों झेलती इस अदभूत चुदाई के मजे लेने लगी ,उसके पति ने उसको आजतक कभी इतनी देर नही चोदा था ,उसके झड़ने से पहले ही वो अपने लंड से उल्टी करके साइड में हो जाता था और इधर ये सांड़ उसके बहन को ठंडी करके उसपे अब तक बिना झड़े चोद रहा था ,उसके चुत में झड़ने ने से जो चिकनाई आ गई थीं उसके वजह से अब काल का लन्ड सरपट दौड़ लगा रहा था , नूरी इस सुख को ज्यादा देर तक सहन ना कर पायी और काल के लन्ड को अपने चुत में कस तक निचोड़ती एक बार और झड गई थी ,काल ने उसकी चुत से अपना लन्ड निकाल लिया जो उसके पानी से पूरा भीग कर चमक रहा था ,काल अपने पीठ के बल लेट गया उसका लन्ड एकदम खड़ा होकर सलामी दे रहा था ,और उस लन्ड को देखकर रेहाना जो अब फिरसे गर्म होकर ललचाई नजरोसे देख रही थी ,काल ने उसे इशारे से अपनी और आने को कहा तो वो झट से उठकर उसके पास आ गई काल ने उसको अपने लंड पर बैठने को कह तो वो काल के दोनो तरफ पैर करती उसके लंड को पकड़कर उसको अपनी चुत में धीरे धीरे लेने लगी पर काल ने उसकी गांण्ड को पकड़कर उसे तेजीसे नीचे बिठा दिया और नीचे से अपने लन्ड से एक धक्का भी लगा दिया नतीजा यह हुवा की वो धम से नीचे बैठ गई और लंड उसके चुत में पूरा बैठ गया ,उसके मुह से फिर एक दर्द की चीख निकल गई ,पर इस बार उसको ज्यादा दर्द नही हुवा ,काल उसके चुचिया दबादबाकर उसे अपने लन्ड पर उछलने लगा वो भी अब मजे में अपने बालों को खोलती इस घोड़े की सवारी करने लगी ,उसके मुह से मजे की सिसकिया निकलने लगी थी,वो भी अपनी बड़ी सी गांड पटकपटक के चुदने का मजा लेने लगी ,नूरी भी इस मजेदार चुदाई की देखकर काल के मुह पर अपनी चुत रखकर अपने बहन को पकड़ कर किस करती अपने चुत और गांड का स्वाद काल को चखाने लगी रेहाना के झड़ने के वक्त काल ने भी उसकी चुत में अपनी गर्म मलाई भर दी ,रेहाना तो इस गर्म माल को अपने चुत में लेकर एक तरफ गिर गई जिसके बाद नुरी भी इस घोड़े जैसे लंड पर बैठकर चुदने लगी,नूरी तो दो बार झड़ंने के बाद ही बाजू में हुवीं ,
काल ने साइड में लेटी रेहाना के गांड के छेद में अपनी एक उंगली से तेल लगाकर उसे नींद से जगाने लगा ,काल अपनी एक उंगली पूरी उसके टाइट गांड़ के छेद में अंदर घुसाकर उसे चिकना और थोड़ा ढीला करने लगा था ,रेहाना भी पेट के बल लेटी उसके उंगली का मजा अपने गांण्ड मे ले रही थी ,थोड़ी देर के बाद काल ने उसकी गांण्ड से उंगली निकाल ली और उसके गांण्ड को फैलाकर उसके गांड़ के छेद में अपने लन्ड के टोपे को लगा दिया जो उसने पहले ही तेल से चिकना कर लिया था उसका लन्ड उस गांण्ड के छेद पर लगते ही रेहाना उस गर्म लन्ड के स्पर्श से सिहर गई उसके कुछ समंझने ने से पहले ही काल ने अपने लन्ड के एक करारा प्रहार से उसके छेद में उतार दिया ,उसके गांण्ड के छेद से खून के साथ रेहाना की एक दर्द भरी चीख साथ मे निकल गई ,कालने उसको कसके पकड़कर अपने दो और धक्कों से उसकी गांण्ड के छेद को पूरा फाड़ के जड़ तक अंदर घुस गया ,रेहाना के मुह से चीख के साथ गन्दी गालिया भी निकलने लगी ,खबीस के बच्चे, यह क्या कर दिया तूने ,अम्मी ssss मेरी गांण्ड ,है खुदा मुझे बचा ले ,मादरचोद छोड़ मुझे ,लेकिन काल ने उसकी गांण्ड को नही मारा आधे घण्टे बाद उसका दर्द और गालिया बन्द हुवीं और वो मजे से सिसकिया लेने लगी और अपनी गांण्ड उठाउठकर उसका लन्ड अपने गांण्ड को खिलाने लगी ,नूरी यह सब देखकर हस रही थी अपने बहन को अपनी गांण्ड में लन्ड खाते देखकर उसे बड़ा मजा आ रहा था ,उसकी बहन के मुह से निकलती गालिया सूनकर उसे हसी आ रही थी ,काल ने उसको भी अपनी और खीच कर उसे भी पेट के बल लिटाकर उसकी गांण्ड में उंगली करते रेहाना की 1 घण्टे तक गांण्ड मारता रहा,उसके बाद उसने रेहाना को छोड़कर नूरी के गांण्ड में अपना मूसल उतार दिया वो भी रोती हुवे गालिया देने लगी ,इस बार रेहाना हस कर उसे चिढ़ाने लगी ,ले छिनाल ,अब तू खा इस मूसल को अपनी गांण्ड में ,देख कितना दर्द और मजा मिलता है ,मार मेरे शेर इसकी गांण्ड को मार ,इसकी गांण्ड मुझसे बड़ी है ,इस छिनाल को और जोरसे चोद, काल ने नूरी को भी 1 घण्टे से ज्यादा चोदा और झड़ते वक्त अपना लन्ड उसकी चुत में गांड से निकलकर उसमें अपना माल भर दिया ,
दोने बहने कमाल की गर्म माल थी ,इतना चुदने के बाद भी उन दोनो ने फिर काल के लन्ड को चूसकर उसके लन्ड का पानी बारी बारी पीकर उसको और उकसाकर अपनी चुत और गांण्ड मरवाती रही,काल ने भी और दो बार उनकी चुत और गांण्ड को जम कर चोदने के बाद अपना गर्म माल उसमे भरता रहा ,
उनसे विदा लेकर काल अपना फोन नंबर उनको देकर अपने घर आ गया ।
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Gurdep

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Update 69
शिवा ने नरगिस को फोन करके बोल दिया था कि वो खाना खाने नही आएगा ,बल्कि नेत्रा के मा बाप मिल गए उनके साथ खाना खाकर आ जायेगा ,इसलिये सब ने शिवा के बिना खाना खाकर शिवा की राह देखने लगे ,और बाते करने लगे ,रात के 10 बजे तक शिवा भी घर वापिस आ गया,आज शिवा का चेहरे पर एक खुशी साफ दिख रही थी,
नीलो,शिवा तुम बड़े खुश दिख रहे हों क्या बात है ,तुम ऐसे खुश हो रहे आज मानो तुम काल के नही बल्कि खुद के ससुराल गये थे हां हा हा,,
शिवा और नेत्रा दोनो एक दूसरे की आखो में देखकर हसने लगे, अब भला वो क्या कहते ,नीलो ने मजाक में कही बात एकदम सही जो थी ,सबके साथ थोड़ी देर बात करने के बाद शिवा अपने कमरे में चला गया ,नेत्रा के मन मे जो सवाल थे वो शिवा भी जानता था ,उसने नेत्रा के मन मे इतना ही कहा ,नेत्रा हम दोनों का मिलन जल्द होगा बस कुछ दिन तक रुक जाओ ,में हम दोनों की पहली रात जल्दबाज़ी में नही करना चाहता,हम दोनों का मिलन यादगार होगा यह बात तुम याद रखना ,उसके बाद शिवा अपने रूम में आकर बिस्तर पर लेट गया ,उसके लंड में कबसे हलचल हों रहीं थी ,सबसे पहले शिवा ने समयमनी में 12 घण्टे ज्वाला को आज किसी जानवरो की तरह जमकर चोदा जो बहुत खुश थी इस चुदाई से उसके बाद उसने 12 घण्टे सुनीता को भी जमकर चोदा आज सुनीता की गांड़ मारते मारते उसने दो बार मूत दिया था ,समयमनी के 24 घण्टे मतलब धरती पर सिर्फ 1 घण्टा, अभी सिर्फ साडे 11 बज रहे थे ,शिवा आज अलग गुस्से में था उसने असुरलोग जाकर माया और तीनों मा बेटियो की चुत भी समयमनी में 24 घण्टे तक इतनी मारी की वो सूज के कुप्पा हो गई थी, फिर उसने भवानीगढ़ जाकर पहले बिजली और उसकी बेटीयो को समयमनी में ले जाकर 24 घण्टे में भगाभगाके चोदा ,उसके बाद उन 100 कवारी मादोओ को उसने ऐसा चोदा मानो उनकी फिर से आज सील खुली हो ,उनको भी समय मनी उसने 24 घण्टे तक चोदा ,लेकिन उसका लन्ड तो और भड़क गया था और शिवा का दिमाग भी अलग घुमा हुवा था ,अभी रात के 3 बज गये थे लेकिन शिवा अपने लंड की आग से जल रहा था ,दो धरती की सबसे गर्म औरते ,3 असुरलोग की सबसे ताक़दवर असुर औरते ,3 दुनिया की सबसे बड़ी और कामुक भेड़ियेऔरत ,100 दूसरे नंबर की ताक़दवर कामुक भेड़िये औरते भी उसकी लन्ड की आग को बुझा नही सकी थी और जो उसको बुझा सकती थी,और ठंडा कर सकती थी उसके पास शिवा जाना नही चाहता था वों थी निता ,शिवा को बस वहीं तरीके से सम्भल सकतीं थी पर आज शिवा ने उसको मा बोला था और उसने भी उसे बेटा मानकर उसे बेटे का प्यार दिया था ,कैसे वो उसके पास जाएगा ,शिवाने देखा कि निता अभीतक अपने आशिक की राह देख कर उसकी याद में तड़प रही है,निता के बदन में भी आग लगी हुवीं थी उसको तो बस अपने आशिक की याद आ रही थी ,उसके आंखो में हल्की नमी आ रही थी ,शिवा यह देख न सका और कब वो निता के बगल में पहुच कर उसे बाहो में भरता अपने सीने से लगा लिया, निता भी अपने आशिक अपने बलम के आगोश में आकर शान्त हो गयी ,शिवा ने निता को अपने साथ समयमनी मे दाखिल हो गया उस वक्त धरती पर साडे तीन बज गये थे ,शिवा ने अपने तपते ओठ निता के मदभरे लबो से जोड़ कर उस रस को पीने लगा जो उसके दिल को अब चैन दे रहे थे ,जिसको उसने मा कहकर शाम को गले लगा लिया था वों उसको सब भूलकर नंगा करने में लगा था ,निता भी अपने सारे कपड़े खोलकर पूरी नंगी हो गई शिवा ललचाई नजरोसे उसके चमकते बदन को देखने लगा था ,निता इतने दिनोसे शिवा से चुदकर अलग ही निखर गई थी ,उसके बदन में शिवा के लंड से जो गाढ़ी मलाई वो पीती थी वो उसको एक अलग ताकद देती थी ,उसकी चुत ने भी शिवाक़े माल को पूरा अपने अंदर सोख लिया था ,उसकी चुचिया को दबादबाकर शिवा ने 42की कर दी थी,और उसकी गांड़ भी उसके लंड के प्रहार से 44 की हो गई थी पर कमर सिर्फ 30 की और पेट एकदम सपाट ,जांघे एकदम गदराई सी ,वो अब 25 साल से ज्यादा नही लगती थी ,सब उसको इस निखार के लिये छेड़ते थे ,पर बस वो शर्मा जाती ,मनोज को उसने 15 साल से अपने आप को छूने तक नही दिया था ,और उसने अब सोच लिया था इस जीवन मे इस बदन का मालिक बस उसका बलम ही होगा और कोई नही ,अपने बलम के मूसल से इतना चुदने के बाद भी उसके चुत और गांड़ के छेद में हमेशा कसाव ही रहा इसकी वजह थी शिवा के गरम वीर्य जो उसको अब जीवनभर इसी साइज़ की रखेगा और उसकी जवानी हमेशा ऐसी ही रहेगी ,शिवा उसके कड़क ,गोरी सी चुचिया को के ऊपर के किसमिस के बड़े से नीपल को मुह में लेकर चुसने लगा ,शिवा के चुसने से उसको अपने चुत के अंदर तक एक झटका लगा और मुह से एक मादक सिसकी, आ आ माsss
शिवा जैसे किसी बच्चे के जैसा उसमेंसे दूध निकालने की कोशिश करता उन्हें दबा दबाकर कभी एक तो कभी दूसरे को चूस रहा था ,निता भी जैसे अपने बच्चे को दुध पिला रही हो ऐसे उसको अपनी चुचिया पिला रही थी वो उसके बालो को प्यार से सहलाती हुवीं अपने चुचिया पर दबा रही थी,
बलम मेरी एक दिल की तमन्ना है ,निता
बोलो मेरी जान ,शिवा,
में तुमको अपना असली दूध पिलाना चाहती हु,और तुमसे अपने दोनो के प्यार की एक निशानी को इस दुनिया मे लाना चाहती हु, तुम जैसे अदृष्य हो सकते हो ,वैसेही तुम में और ताकते भी होगी ,तूम क्या करोगे मुझे मालूम नही ,पर मेरे पति को यही लगना चाहिये की यह उसकी हीं औलाद है ,मुझे तुम कभी अपनी शक्कल मत दिखाओ ,पर मेरी यह इच्छा जरूर पूरी करो अगर तुम मुझे कुछ अपना मानते हो ,निता
तुम मेरी सबसे दिल के करीब हो ,तुम्हारी आगोश में ही में सुकून पाता हूं ,बस तुम ही मेरे दर्द की दवा हो ,तुम्हारी चाहत को में जरूर पूरा करूंगा ,हम दोनोकी निशानी तुम जरूर इस दुनिया मे लेकर आओगी यह मेरा वादा है तुम जैसे बोल रही हो वैसा ही होगा ,तुम्हारे पति को यह उसका ही खून लगेगा ,
शिवा ने निता को यह बोलकर उसके चुत के पास जाकर अपनी जन्नत के दरवाजे को खोलकर उससे निकलते अमृत की धार को पीने लगा निता के चुत को दोनो होठों को इतने प्यार से चूस कर उसके रस को पीने लगा ,निता भी अपने इस प्यासे आशिक की प्यास को समझ कर हर दस मिनीट बाद उसको अपने चुत के नमकीन फव्वारे से बुझा रही थी ,शिवा के दिल मे जो आग थी जो गुस्सा था सब इस पानी से बूझकर उसकी आत्मा को सुकून और शांति दे रहा था ,निता ने भी इस बीच शिवा को 69 में आने को बोलकर अपने सबसे प्यारे खिलोने को अपने गर्म मुह में लेकर उसे अपनी नरम नरम जीभ से छेड़ रही थी जो शिवा दो घण्टे तक झड़ता नही था वो निता के मुह में उसका गुलाम हो जाता ,निता जब भी उसके उन दो मोटे आंड को दबाती वो अपना गर्म माल की पिचकारी उसके मुह में छोड़कर उसके हुक्म को मानते थे ,निता और शिवा दोनो कितना भी एकदूसरे का माल पी ले पर उन दोनों का न मन भरता न पेट ,निता ने जब शिवा के माल को अपने मुह में लेकर हजम किया और बोली ,बलम मेरे नीचे भी अपने इस अमृत को बरसा दो वो भी बहुत प्यासी है ,इस मलाई की और उसके बाद जितना दिल करे मेरे गांण्ड की सवारी करो ,
शिवा ने निता की बात मानकर उसके दोनो टांगो को थोड़ा फैलाकर उसकी चुत में अपने लन्ड को रखा तो एकदम घी में जैसा चाकू घुस जाता है उसी तरह उसका लंड एकदम आराम से उसकी चुत में अंदर घुस गया ,उसके चुत ने उसको अपने अंदर लेकर ऐसे कसने शुरू किया मानो कोई अजगर अपने शिकार को कसता हो ,शिवा को ऐसा लग रहा था मानो उसका लन्ड एक जलते लावे की आग में घुस गया हो,उसके लन्ड को यह आग और उस लावे की गर्मी सुकून ही देती थी ,निता ने अपनी दोनो टाँगे शिवा के गांण्ड पे कस दी और अपने दोनो बाहो में लेकर उसके मुह में अपनी जीभ घुसाकर उसके जीभ को चुसने लगी ,शिवा के हर धक्के के साथ निता अपने गांड़ से ऐसा ताल मिलाती के शिवा का हर धक्का शिवा के लंड के टोपे को उसके गर्भाशय तक टकर देने को मजबूर करता ,दोनो एक दूसरे में साथ ही झड़ते और पल भर में ही अगले दौर को लग जाते बस एक दूसरे के झड़ने तक हीं दोनो थम जाते थे ,शिवा और निता आज कितनी बार एक दूसरे में खाली हुवा उनको पता ही नही था ,दोनो तो रुकते ही नही ,पर निता के गांड़ के छेद में अपनी खुजली बढ़ाकर चुत की शिकायत कर दी यह कितना माल खा रही है ,थोडी मेरी भी तो फिक्र करो ,मे पीछे हु इसका मतलब में इस चुत से माल खाने में और मेरे मालिक को अपने अंदर लेने में बिल्कुल पीछे नही रहुंगी ,मुझे भी उतना ही माल मिलना चाहिए जितना इसको मिला है,
निताने शिवा के गाढ़ी मलाई के आखरी बून्द को अपने अन्दर लेने के बाद ,अपने एक हाथसे उस लंड को अपनी चुत से निकाल कर घोडी बन गई ,शिवा भी उसके गांड के उस गुलाबी छेद को खुलते बंद होते देखकर निता के इस मख़मली गांड़ को पकड़कर ,अपने लंड को उसके गांड़ के दुर्लभ गलाबी छेद पर रखकर अंदर करने लगा ,निता के चुत की तरह ही उसके गांड़ के छेद में बिना किसी ,तेल या चिकनाई के बिना उसका लंड जड़ तक घुस गया ,निता की गांड़ शिवा के लिये एक अजूबा हीं थी ,एक असुर औरत उसके लंड के अंदर लेने के बाद भी दस मिनीट तक चीखती ही थी और बिना तेल के उसके लन्ड को अपने अंदर वो भी नही लेती थी ,मगर निता बिना किसी चिकनाई के इतना बड़ा लंड अपने गांड के छेद जड़ तक अपने अंदर आराम से ले लेती थी ,शिवा ने अपने लंड के गहरे धक्के निता के गांड़ में जड़ता उसके कसाव का मजा लेता उस मखमल जैसे दो बड़े से गोल मटकों को दबाता मजे कर रहा था ,थोड़ी देर बाद निता खुद ही शिवा को रोककर कुतिया बनकर शिवासे अपनी गांड़ और तेजीसे मरवाने लगी शिवा निता की चुदाई में हमेशा किसी बच्चे की तरह जो उसके मा की हर बात मानता वैसे ही निता जो भी कहती शिवा बिना ना नुकुर के झट से मान जाता था ,अब उसे क्या पता बिचारा की अपनी ही मा की गांण्ड वो मार रहा है ,निता कुतिया के पोझ में कुछ देर चुदकर अपने पेट के बल लेट गई शिवा उसी पोझ में उसके बड़ी सी गांड को अंदर तक खोलता रहा और निता अपनी गांड मरवाती रही इसी पोझ में शिवा उसके गांड़ में झड गया ,शिवा के झड़ते ही दोनो एक दूसरे को किस करते खड़े रहे और निता किसी बन्दर की तरह शिवा के गोद मे चढ़ गई और अपने एक हाथ नीचे के ले जाकर उसके लन्ड को पकड़ कर उसपे अपनी गांड़ से ताकद लगाकर दबाती पूरा निगल गई ,शिवा के गले मे दोनो हाथ डालकर उसे जंगली बिल्ली सी नोचती वो तेजीसे अपनी गांड उठा उठाकर अपनी चुत उसके लन्ड पर पटकती उसके लन्ड को निगल रही थी ,शिवा भी अपने मजबूत पंजो में उसके दोनो गोल गांण्ड के मटकों को दबादबाकर उसके चुत में अपना लन्ड नीचे से पूरी ताकद से ठेल रहा था ,निता 15 मिनीट में ही उसके लंड पर झड गई शिवा ने उसके चुत से लन्ड खीच कर बिना किस तोड़े उसको थोड़ा उठाकर उसके गांण्ड के छेद में अपना लन्ड एक झटके में घुसाकर जम के उसके गांड को उसी पोझ में मारने लगा निता भी जोष के साथ उसका साथ बराबर देती रही शिवा ने इस बार जोर हुंकार भरकर उसकी गांण्ड के अंदर अपनी पिचकारियां छोड़ने लगा ,शिवाने इसके बाद नीता को अपने साथ बेड पर उसकी गांण्ड को अपनी और करके सुला लिया और उसकी एक टांग को अपने हाथ मे उठाकर उसे किस करता पिछे से उसके चुत में सप्प से लन्ड घुसाकर किस करते चोदने लगा इस पोझ मे कभी वो निता की चुत मारता तो कभी गांड शिवाने आखिर में उसकी चुत में ही अपने लंड से अपना माल भर दिया और निता के आगोश में आराम करने लगा ,समय मनी 48 घण्टे तक दोनो की चुदाई चलती रही और उसके बाद शिवा एक प्यारा सा किस देकर 6 बजे घर आकर नहा लिया और आज 8 बजे तक अपने लैपटॉप में काम करता रहा ,शिवा के पास आज दुनिया का हर ज्ञान था आधुनिक और पुरातन ,उसने असुर माया के प्रयोग से दुनिया का हर ज्ञान हासिल कर लिया था वो भी बस 5 मिनीट में ही ,उसने नरगिस को 15 दिन का वादा किया था पर अब वो बस 5 दिन में ही एक ऐसा सिस्टीम बनाने वाला था जो दुनिया का कोई भी हैकर तोड़ ना सके 8 बजे उसने अपना नाश्ता किया और 9 बजे आज कॉलेज पहुच गया ,जहा उसे मुरझाई मोना मिल गई ,शिवाने आज कॉलेज में पूरा दिन उसके साथ बिताकर उसके प्यार को कबूल कर के कुछ वक्क्त चुप रहने को कहा ,मोना का उदास चेहरे पर आयीं खुशी देखकर उसे बहुत अच्छा लगा ,आज उन्होंने साथ मे जो वक्क्त बिताया उससे मोना बहुत खुश थी ,शिवाने आज सुबह से एक बात सोच ली थी कि वो अब सब के साथ प्यार बाटता रहेगा किसी को नाराज नही करेगा ,वो जिसको जिंदगी ने अनाथ बनाया था ,सबका सहारा बनेगा चाहे उसे इस वजह से थोड़ा झूठ बोलना पड़े पर वो सबको खुशियां देता रहेगा ,दोपहर को 3 बजे घर पे आकर उसने खाना खाया और काल मतलब केतकी के साथ उसके रूम में जाकर नेत्रा और हिमांनी को अपने साथ चलने को कहकर 3 घण्टे तक मुम्बई घूमता रहा ,केतकी ने बाहर आकर काल का रूप छोड़कर अपने रूप में आ गई ,तीनो को आइसक्रीम ,पानी पूरी ,भेल खिलाकर जुहू की समुन्दर की सैर कराकर लाया तीनो बहुत खुश थी ,शिवाने नरगिस और सनम के साथ सबको बाहर खाने पर चलने को कह ,पूजा को भी उसने बुला लिया फोन करके ,जीनत और शफ़ी चाचा के साथ सिनोब और कोकी को भी ले लिया ,रात के दस बजे तक सबको खाना खिलाकर मुम्बई के स्पेशल ज्यूस और पान खिलाकर वापिस ले आया जिससे सब लडकिया बहुत खुश थी ,पूजा नेत्रा और काल से मिलकर बहुत खुश हुवीं ,वो नेत्रा के कहने पर आज नरगिस के घर रुक गई थी ,रात को 10 बजे घर आकर शिवा ने सबको कहा कि वो अभी सॉफ्टवेयर का काम करने वाला है ,कोई उसे डिस्टर्ब ना करे ,सब आज इतने खुश थे सबने उसकी बात मान ली ,शिवा आज 10 बजे अपने कमरे को अंदर से बन्द करके सीधा भवानीगढ़ के मंदिर की गुफा में पहुचा काल बनकर आज पहली बार उसने सर्पिणी और विशाखा से काम के अलावा और बाते करता रहा ,आज उसके साथ कल हुवीं भीषण चुदाई से ज्वाला,सुनीता ,और सब भेड़ियेऔरत और असुरलोग के असुर पत्नीया भी नही चुदने वाले थे सबकी चुत सूज गईं थी ,12 बजे सर्पिणी और विशाखा के साथ काल नील से मिला, उसने नील को अपनी असुरी विद्या और विषलोक के जहर से जो उसके अंदर मौजूद था उसकी मदद से 100 गुना ताक़दवर बना दिया ,साथ मे ऐसा ही उसके दोनो साथियों को भी नील जैसा ही बलशाली कर दिया ,नील को उसने कहा तुम सब भेडियमानव को आज के बाद आधुनिक और पुराणिक सब ज्ञान अपने तीनो दोस्तो के साथ देते रहना कल पूरे मन्दिर की सुरक्षा तुम सबके हवाले है ,नील ने वजह पूछी तो काल ने कहा ,वो कल सर्पलोक जाने वाला है रात के 12 बजे और सुबह 6 बजे लौट कर आएगा ,वहां जाकर वो सर्पिणी और विशाखा से सर्पलोक में शादी करने वाला है ,सर्प लोक में धरती का 1 घण्टा मतलब सर्पलोक के 5 दिन होते थे ,इस तरह पूरे 1 महीने वो सर्पलोक में रहने वाला था ,सर्पिणी और विशाखा उसकी बात सुनकर खुश होकर वहा से चली गई ,नील के साथ 30 मिनीट में ही सब बातें हो गयी थी ,उसके बाद वो सीधा माला और बानी जो खुद को सबकी नजरों से गायब समझ कर सुन और देख रही थीं उनके सामने पहुच गया ,उसने जब दोनो के नाम लिये दोनों हैरान हो गई के काल उनको देख सकता है ,काल ने कहा ,माला और बानी परसो हम तीनों हिमालय के अश्वलोक चलेंगे वहां पर में तुम दोनोकी हर समस्या खत्म कर दूंगा ,परसो हम 12 बजे ही चले जाएंगे ,काल ने ज्यादा देर बात नही की वो उनको वैसा ही आश्चर्य में छोड़कर 1 बजे अपनी कामदेवी निता के साथ समयमनी मे 72 घण्टे का समय बिताकर उसे कहा कल में रात के 10 बजे ही आ जाऊंगा ,शिवा सुबह 4 बजे घर पर आ गया ,उसने नहाकर 8 बजे तक अपने लैपटॉप में काम करते गुजारा ,और 9 बजे तक नास्ता करके कॉलेज चला गया ,मोना के साथ उसने आज सिर्फ कॉलेज में थोड़ी पढाई की बाद में थोड़ी मस्ती ,शिवा ने आज घर आकर खाना खाया और सबको लेकर मूवी देखने गया उन लोगों ने खाना भी बाहर ही खाया और बहुत मस्ती की सब 9 बजे तक घर आ गए सब लडकिया कल और आज के घूमने फिरने से खुश थी ,आज सब थक जाने से 10 बजे के पहले ही सोने चले गए ,शिवा ने 10 से 12 का समय निता के साथ समय मनी में 48 घण्टे का करके 12 बजे सर्पिणी और विशाखा के पास आ गया ,आज उसने अपनी माया से ज्वाला ,सुनीता को सुला दिया था ,उसी तरह असुरलोग की 3नो पत्नीयो को सुला दिया ,भेडियमानव की उससे चुदने वाली सब मादा 3 दिन तक आराम करने वाली थी ,सर्पिणी और विशाखा ने काल के दोनो तरफ खड़ी होकर उसके एक एक हाथ को पकड़ के गायब हो गई ,तीनो सर्पलोक के प्रवेश द्वार पर पहुच गये थे पर काल के महानाग के प्रचंड रूप जो उसने यहा आने पर लिया था ,सब प्रवेश द्वार छोड़कर अंदर भाग गए थे ।
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Shivraj Singh

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Bhai ek galti is pure story me ye hai ki shiva ko apane asali roop me sabse sex karna chahiye tha. Na ki gayab hokar aur vishakha naresh aur prithvi ke samne tatha nita aur netra ko apane asali roop me ana chahiye tha.
 

Gurdep

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Update bhai waiting
 

Mastmalang

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