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Incest जीजा जी की चाहत (incest)

Lovemuk

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Wating

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मेरा दिमाग इस समय उत्तेजना से सनसना रहा था ....... प्रतीक जो अब तक मुझे एकदम सीधे सादे इंसान लग रहे थे उनका ये सेक्सी अवतार देख कर मैं हैरान था ...... लेकिन मेरे मन मे ये खुशी भी थी कि वो दीदी से प्यार करते हैं और दीदी सेक्स के मामले में हमेशा खुश और संतुष्ट रहेंगी .........

कुछ देर बाद प्रतीक नेहा के ऊपर से उठे और अपने कपड़े पहनने लगे ...... नेहा ने भी उठ अपनी ब्रा पैंटी उठाते हुए प्रतीक से कहा ...... आज तो सच मे मज़ा आ गया बहोत दिनों बाद इतनी मस्त चुदाई हुई मेरी ....... प्रतीक मुस्कुरा दिए और बोले थैंक्स नेहा मेरी इस चाहत को पूरा करने के लिए ........ और उन्होंने अपने कपड़े पहन कर जेब से 50000 की गड्डी निकाल कर नेहा को दी पैसे पा कर नेहा की खुशी और भी बढ़ गयी उसने पैसे अपने पर्स में रखे और बोली मैं अब रुकूँ या जाऊं ......?

प्रतीक बोले विकास से पूछ लो और वो बेड पर लेट गए ...... नेहा कपड़े पहन चुकी थी और बाहर आने लगी मैं जल्दी से भाग कर अपने कमरे में आ गया और दरवाजा बंद कर के लेट गया ......

2 मिनट बाद ही डोर नॉक हुआ और मैंने जा कर दरवाजा खोला ....., नेहा मुस्कुराती हुई अंदर आ गयी और बोली सुना सब ..... मैंने हां में सर हिला दिया ...... वो बोली अब मुझे और क्या करना है ......... मैंने कहा बस तुम्हारा काम खत्म तुम जा सकती हो ......,

उसने घड़ी देखी साढ़े 11 बज रहे थे और बोली काफी रात हो गयी है अगर तुम्हे प्रॉब्लम ना हो तो मैं यही रुक जाऊं सुबह चली जाऊंगी ......

मैंने कहा ठीक है ..... और दरवाजा बंद कर लिया ...... नेहा बेड पर लेट गयी और मैं भी लाइट ऑफ कर के उसके बगल में लेट गया .......

कुछ देर बाद वो बोली वो सब सुन कर भी तुम्हारा मूड नही बना .......? मैंने कहा बना तो था पर मैंने मुठ मार ली ....... नेहा बोली ह्म्म्म वैसे तुम चाहो तो मेरे साथ सेक्स कर लो पेमेंट ले चुकी हूं मैं ...... मैंने कहा अब नींद आ रही है पता नही क्यू नेहा मुझे अच्छी तो लग रही थी पर उसके साथ सेक्स करने का मन नही हो रहा था .......

फिर हम सो गए ....... सुबह 7 बजे मेरी नींद खुली तो मैंने नेहा को जगाया वो उठी और फ्रेश होने चली गयी ....... मैं प्रतीक वाले रूम में आया देखा तो वो नहा कर तैयार थे ....... मुझे देखते ही बोले ...... अब निकलते हैं यहाँ से मैंने कहा हां मैं बस नहा लूं फिर वापस चला जाये ...... वो बोले ठीक है मैं टिकट का इंतजाम करता हूँ ......

मैं वापस अपने रूम में आया और नेहा के निकलते ही बाथरूम में घुस गया आधे घंटे में मैं भी तैयार था नेहा जा चुकी थी ....... प्रतीक ने बताया कि साढ़े 10 बजे हमारी फ्लाइट है लखनऊ की ....... हमने रूम में ही नाश्ता किया और फिर सारा सामान बैग में डाल कर हमने चेकआउट कर लिया ......

और एयरपोर्ट के लिये निकल पड़े रास्ते मे यमुना के पुल से गुजरते हुए वो पिस्तौल और बचे हुए कारतूस मैंने नदी में फेंक दिए ........

10 बजे हम एयरपोर्ट पहुंचे और फिर फ्लाइट पकड़ कर 1 बजे हम वापस प्रतीक के घर पहुंच गए .......

घर पहुंच कर हम सब ने साथ मे लंच किया श्वेता ने मज़ेदार खाना बनाया था खाना खा कर प्रतीक बोले विकास तुम आराम करो थके होगे कल से भागदौड़ में लगे हो ...... मैं थोड़ी देर के लिए आफिस हो आता हूँ ......

मैं ऊपर उनके रूम में गया चेंज किया और लोअर बनियान पहन कर लेट गया ..... और दीदी को कॉल की लेकिन कॉल रिसीव नही हुई शायद वो कॉलेज गयी होंगी .......

मुझे नींद आने लगी थी ..... और मैं सो गया ....... लेकिन सोए हुए मुश्किल से 20-25 मिनट ही हुए थे कि मेरे फोन की घंटी से मेरी नींद खुल गयी देखा तो दीदी का कॉल था ......

मैंने कॉल रिसीव की और ......

दीदी- हेलो विकी ...... कैसा है मेरा भाई .....

मैं- एकदम बढ़िया आप बताओ क्या हो रहा .....

दीदी- कुछ नही बस नीचे थी मम्मी के पास फोन ऊपर ही पड़ा आ कर देखा तो तेरी कॉल मिस हुई थी ....... और बताओ कहाँ हो .......

मैं- प्रतीक के घर पर हूँ आपको कॉल की रिसीव नही हुई तो सो गया था ........

दीदी- ओह सॉरी मैंने डिस्टर्ब कर दिया तुमने .......

मैं- कोई नही दीदी ...... मेरा मन कर रहा था आपसे बात करने का नही हो पाई तो लेट गया और नींद आने लगी .......


दीदी- अब तो बता दो कल वहां क्या कैसे हुआ ......

फिर मैंने उन्हें कल दिल्ली में घटी सारी घटना विस्तार से बताई ........ सिवा नेहा और जीजा के बीच हुई चुदाई और जीजा जी की श्वेता के प्रति चाहत के .......

ये सुन कर की रेलवे ट्रैक पर किस तरह मेरी भी जान मुश्किल में पड़ गयी थी दीदी रोने लगी ...... और बोली विकास इतना खतरा क्यों उठाया तूने अगर तुझे कुछ हो जाता तो मेरा क्या होता मैं कैसे जीती तेरे बगैर ......

मैंने हंसते हुए कहा कैसे हो जाता मुझे कुछ आपका प्यार हमेशा मेरे साथ है मेरी रक्षा करने के लिए ...... दीदी बोली वापस कब आ रहे हो जल्दी आओ ना ...... एक हफ्ता हो चुका है हमे ......

मैंने उनकी बात समझी तो मेरा भी लंड सर उठाने लगा हमे मस्ती किये एक हफ्ते से ज्यादा हो चुका था और मैंने दीदी से वादा किया था कि हफ्ते में एक बार .......

दीदी हंसते हुए बोली विकी जितना तूने किया है मेरी खातिर उसके बदले में कुछ गिफ्ट तो मिलना चाहिए तुम्हे....... मैंने कहा दीदी आपका प्यार है ना सबसे बड़ा तोहफा ...... दुनिया मे कितने भाई अपनी बहन से ऐसा प्यार पाना चाहते होंगे लेकिन किसे मिल पाता है प्यार ......., आप इतना प्यार देते हो मुझे इस से बड़ा गिफ्ट क्या होगा मेरे लिए ....... लव यू दीदी ...... ऊऊम्म्म्म

दीदी बोली लेकिन फिर भी विनय नाम के संकट को हमेशा के लिए मेरी जिंदगी से दूर करने के बदले मैं अपनी जान भी तेरे नाम कर दूं तो कम है ......., लेकिन मेरा गिफ्ट तो तुझे लेना ही पड़ेगा विकी ....... कहते हुए दीदी की आवाज़ में थोड़ी ठरक आ गयी थी ........

मैंने कहा ठीक है आपकी जैसी मर्ज़ी और दीदी खुश हो गईं और बोली फिर जल्दी से आजा मेरे पास मैंने कहा ok कल सुबह तक आ जाऊंगा ........

दीदी बोली ok मेरी जान लव यू सो मच ऊम्म्ममम्म और उन्होंने फ़ोन काट दिया .......

मैं फोन रख कर फिर से लेट गया तभी रानी का कॉल आया मैंने उसे भी वो सारी जानकारी दी और विनय की मौत की खबर सुन कर वो भी खुश हो गयी और बोली thanks विकास तुमने मेरे जीवन की सारी परेशानियां दूर कर दी ........ वापस कब आ रहे हो मुझे मिलना है तुमसे मैंने कहा बस कल तक आ जाऊंगा वो बोली ठीक है........

फिर मैं सो गया और शाम 6 बजे श्वेता ने मुझे जगाया और चाय दी ........ इस वक़्त उसने एक प्लाजो और कुर्ती पहनी हुई थी और कसी हुई कुर्ती में उसकी उभारदार चुंचिया देख कर किसी का भी मन डोल जाता फिर बेचारे प्रतीक का क्या कसूर .......


मैंने चाय पीते हुए पूछा प्रतीक अभी नही आये वो बोली बस आते ही होंगे ......., और वो मुड़ कर चल दी उसकी मटकती गांड़ देख कर मेरे दिल की धड़कन बढ़ गयी ...... वाकई श्वेता एक दिलकश और सेक्सी लौंडिया थी .......

मैंने चाय खत्म की तभी प्रतीक आ गए और चेंज कर के मेरे पास बैठ गए और बोले विकास मुझे समझ नही आ रहा मैं तुम्हारा किस तरह से शुक्रिया अदा करूँ ....... तुमने इस सब मे मेरी मदद कर के मुझ पर बहोत बड़ा उपकार किया है .........

मैंने कहा ऐसा क्यों बोल रहे आप मैंने ये सब सिर्फ अपनी दीदी के लिए किया है और उनके लिए मैं कभी भी कुछ भी कर सकता हूँ ..... ये कहते हुए मैं थोड़ा उत्तेजित हो गया था ....... प्रतीक ने मेरी उत्तेजना को भांप लिया और बोले बहोत प्यार करते हो निकिता से ....... मैंने आवेश में कहा बहोत ज्यादा ....... वो मुस्कुरा दिए और बोले वो भी बहोत प्यार करती है तुम्हे .........

प्रतीक बोले चलो चलते हैं मैंने कहा कहाँ ....... वो बोले थकान मिटाने ......, मैंने कहा चलिए और फिर मैं कपड़े बदल कर उनके साथ बाहर आ गया उन्होंने मुझे लखनऊ के मुख्य बाजार में घुमाया मेरे और दीदी के लिए शानदार ड्रेस खरीदी मुझे बियर पिलाई और और एक फाइव स्टार होटल में डिनर कराया .......

डिनर करते हुए मैंने कहा प्रतीक मुझे आज रात वापस जाना है वो बोले यार दो चार दिन तो रुको मैंने कहा नही अगली बार आऊंगा तो रुकूँगा तब दीदी भी होंगी यहाँ ..... वो हंसने लगे और बोले शादी के बाद कैसे रहोगे अपनी दीदी के बिना ......

उनकी बात सुन कर मेरी मुस्कान गायब हो गयी ...... वो मेरी उदासी भांप कर बोले अरे परेशान मत हो यार मैं तुम्हारा एडमिशन यही की किसी अच्छे कॉलेज में करा दूंगा तुम यहीं रहना अपनी दीदी के साथ ......., उनकी बात सुन कर मैं हंस दिया ........

और बोला लोग कहेंगे कि आपको दहेज में साला मिला है और हम दोनों हंसने लगे ........

फिर उन्होंने मोबाइल पर ट्रेन चेक की रात 11 बजे एक ट्रेन थी उन्होंने मुझे बताया तो मैंने कहा बस टिकट बुक कर दो आप उन्होंने एक सेकेंड ac की टिकट बुक कर दी फिर हम घर आ गए .......,

और मैं अपना बैग पैक करने लगा ....... तभी मेरे फोन की घंटी बजी मैंने देखा तो अननोन नंबर से कॉल थी मैंने कॉल रिसीव की तो उधर से एक लकड़ी बोली हेलो विकास .........

मैं - जी आप कौन .....?..

लड़की- मैं प्रीति पहचाना नही क्या ......

मैं- oh प्रीति कैसी हो सॉरी यार नंबर नही था तुम्हारा मेरे पास इसलिए नही पहचान पाया .....,

प्रीति- इसीलिए तो कॉल की ताकि तुम नंबर सेव कर लो मेरा ...... और सुनाओ क्या हो रहा ......

मैं-बस वापसी की तैयारी हो रही पापा की तबियत अब कैसी है .......

प्रीति- पापा अब एकदम ठीक हैं इसीलिए मैं भी कल वापस जा रही हूं अगले महीने एग्जाम हैं ......

मैं- कल क्यों आज ही चलो ना मेरे साथ......

प्रीति- अरे यार मैं तो चल दूँ लेकिन मम्मी कहाँ जाने देगी रात में उस दिन ही बहोत डांट पड़ी मुझे रात में आने की वजह से.......

मैं- ह्म्म्म चलो कोई नही फिर मैं तो निकल रहा हूँ एक घंटे में .....

प्रीति- ok bye विकास बनारस पहुंच कर कॉल करूंगी तुम्हे .......

मैं- ok bye .......

फिर मैं बैग ले कर नीचे आया मां जी के पैर छू कर श्वेता को bye बोल कर प्रतीक के साथ स्टेशन आ गया ट्रेन छूटने तक प्रतीक मेरे साथ रहे और फिर ट्रेन चल दी ........

वापसी में कोई खास बात नही हुई मेरे साथ रास्ते मे और मैं सो गया फिर सुबह 4 बजे ट्रेन प्रयागराज पहुंची और मैं एक टैक्सी ले कर घर आ गया ........


टैक्सी वाले के pay कर के मैं घण्टी बजाने वाला था फिर मुझे लगा मम्मी पापा जाग जाएंगे इसलिए मैंने घंटी ना बजा कर दीदी को काल की ..........

लेकिन पूरी घंटी जाने ले बाद भी कॉल रिसीव नही हुई मैंने दोबरा घंटी की और दो रिंग जाने के बाद ही उधर से कॉल काट दी गयी ........ मैं दीदी का इंतजार करने लगा और पूरे 5 मिनट बाद गेट खुला ........ दीदी सामने खड़ी थीं ........ आज उन्होंने हल्के बैगनी कलर की सिल्क की नाइटी पहनी थी ये इतनी पारदर्शी थी कि अंदर से उनका नंगा बदन साफ झलक रहा था इस नाइटी को पहनना ना पहनना एक जैसा था ........ कमर तक लहराते खुले बाल ....... और उनकी नाक देख कर मैं चौंक पड़ा ..... उन्होंने नाक में एक छोटी सी रिंग पहनी हुई थी पहली बार दीदी ने नाक में कुछ पहना था......... और इस रिंग ने उनकी खूबसूरती में चार नही आठ चांद लगा दिए थे ........,

और इस सबके बाद उनकी जानलेवा कातिल मुस्कान वो मंद मंद मुस्कुराती हुई मुझे देखने लगी ....... और मैं तो पलकें झपकना भूल गया ....... दीदी ने खामोशी तोड़ी और बोली क्या हुआ मेरे हीरो ....... अंदर नही आओगे मैं खुद के होश सम्हालता हुआ अंदर आया और ......


दीदी भी गेट लॉक कर के मेरे साथ ऊपर आ गईं ...... रूम में आते ही मैंने बैग रखा और दीदी ......., ने एकदम से मुझे अपनी बाहों में भर लिया ...... कस के ...... हम पूरे 5 मिनट तक ऐसे ही एक दूसरे को बाहों में भरे एक दूसरे के जिस्म की गर्मी को महसूस करते रहे ........

फिर मैंने कहा दीदी छोड़ो अब मुझे चेंज करना है ....... दीदी ने मुझे छोड़ दिया लेकिन बड़ी गौर से देखते हुए मुस्कुराने लगी ...... मैंने कपड़े उतारते हुए पूछा ऐसे क्या देख रही हो दीदी ...... वो बोली देख रही हूं मेरा भाई हीरो से सुपरहीरो होता जा रहा है ....... अभी कुछ दिन पहले मैं कितनी परेशान थी लेकिन जैसे ही तुम्हें मेरी परेशानी के बारे में पता चला तुमने झट से सब सही कर दिया जैसे जादू से और अभी फिर परसों रात की ही तो बात है मैं कितनी परेशान थी क्या क्या नही सोच डाला था और दो ही दिन में सब ठीक कर दिया तुमने जैसे कुछ हुआ ही ना हो ..... ..

मैंने जीन्स और टीशर्ट निकाल दी थी और लोअर ढूंढने लगा लेकिन अलमारी में एक भी लोअर नही दिखा मैंने पूछा दीदी मेरे लोअर कहाँ गए सारे ...... दीदी बोली आज मशीन लगाई थी तो सारे धो डाले फिर सुखा कर बाकी कपड़ो के साथ नीचे ही रख दिये अभी ले आऊंगी दिन में . .......

तब तक ऐसे ही रह लो ना और आंख मार कर मुस्कुरा दी ...... मैं जा कर बेड पर लेट गया 4 बजे थे अभी कुछ और नही किया जा सकता था ...... दीदी ने लाइट ऑफ की और आ कर बगल में लेट गयी ...... मैंने कहा दीदी ......

दीदी- हूंऊऊ

मैं- दीदी आपकी नोज रिंग ...... बहोत मस्त लग रही है .....

दीदी- पसन्द आयी ना तुझे ..... मैं सोच रहा थी पता नही तुम्हें अच्छी लगेगी या नही ????? मैंने कहा मुझे तो आप अच्छी ही लगोगी हर हाल में लेकिन ये पहनने के बाद तो आप सुपर से भी ऊपर लग रही हो ......... दीदी बोली किस करने का मन कर रहा है क्या ....... और वो करवट ले जार मुझ पर झुकती चली गईं उनकी नरम नंगी सी चुंचिया मेरे सीने पर दब गई और उन्होंने अपने रसीले होंठ मेरे होंठो पर रखे और भूखी बिल्ली की तरह चूसने लगी .......

मेरी आँखें बंद हो गईं और मैं उनकी पीठ सहलाते हुए इस अद्भुत आनंद में खो गया ........ जल्दी ही दीदी की रसीली गर्म जीभ मेरे मुह में दाखिल हो गयी ..... उफ़्फ़फ़ मीठा से स्वाद मेरे मुह में घुलने लगा और मैं दीवानों की तरह दीदी की जीभ चूसने लगा ........

5-7 मिनट तक हमारा ये गर्म और रसीला चुम्बन चलता रहा और इतनी देर में मेरा लंड एकदम राकेट हो गया ...... और तभी दीदी ने किस तोड़ते हुए एक हाथ मेरे अंडरवियर में डाल मेरा सख्त लौड़ा अपने नरम हाथो में ले लिया और उसे दबाते हुए बोली विकी मेरी जान तेरी दीदी की इसकी बहोत जरूरत है .......

उनका हाथ लंड पर महसूस कर के मेरे पूरे बदन में एक झुरझुरी हुई ...... मैंने कहा दीदी ऐसा क्या हुआ जो इतनी जरूरत हो गयी आपको .......

दीदी बोली जब से तुम गए हो ....... मैं कॉलेज भी नही गई प्रतीक भी तुम्हारे साथ थे तो उनसे भी ज्यादा बात चीत नही हुई ....... टाइम नही पास हो रहा था मेरा तो बस फोन पर सेक्स स्टोरीज पढ़ी और ढेर सारी पोर्न देखी ताकि चुदाई का पूरा नॉलेज हो जाये ...... और मैं प्रतीक को पूरी तरह से खुश और संतुष्ट कर पाऊं ..... लेकिन वो सब पढ़ और देख कर मैं खुद ही इतनी गरम हो गयी कि कल से मेरी चूत पानी बहाए जा रही है........ और अब मुझे इसकी जरूरत है विकास ........

दीदी अपना हाथ धीरे धीरे मेरे लंड पर चलाना शुरू कर दिया था ........ और मेरा लंड भी जो कल नेहा की चुदाई देखने के बाद से झड़ा नही था वो अपने पूरे रंग में खड़ा हो कर झटके लगा रहा था ....... मैंने कहा दीदी आपकी चूत की प्यास मैं बुझा दूंगा लेकिन उस तरीके से नही जैसे आप चाहती हो .......

मेरी बात सुन कर दीदी तड़प कर बोली तुम मुझसे जरा भी प्यार नही करते ना विकी मैं कब से तुमसे तुम्हारा प्यार मांग रही हूं लेकिन तुम नही दे रहे ...... मैंने कहा अगर आपको ऐसा लगता है तो सही हो होगा .........


मेरी बात सुन कर दीदी ने गहरी सांस ली और बोली जानती हूं मुझे ऐसा नही लगना चाहिए आखिर तुमसे ज्यादा कौन चाहेगा मुझे लेकिन इस चाहत को अधूरी रखने की जिद क्यों पकड़े बैठे हो विकी ........

तुमने मुझे भाई का प्यार दिया दोस्त का प्यार दिया ...... बॉयफ्रेंड जैसा अहसास भी दिया मुझे और मुझे ये सब बहोत अच्छा लगा मैं हमेशा से ऐसा ही केयरिंग और समझदार जीवनसाथी चाहती थी मेरे वश में होता तो मैं प्रतीक की जगह तुमसे शादी कर लेती .......

लेकिन तुम्हारी खुशी के लिए तुम्हारे कहने पर मैं तुम्हारी हर बात मानती आयी अब एक बात मेरी भी मान लो प्लीज विकी ....... बस 3 महीने हैं मेरे पास और मैं इन्हें पूरी शिद्दत से अपने पहले प्यार के साथ जीना चाहती हूं इन पलों को महसूस करना चाहती हूं ........ और तुम्हे अपना ढेर सारा प्यार दे कर तुम्हारा बहोत सारा प्यार पाना चाहता हूं ........ लेकिन तुम हो कि हफ्ते में सिर्फ एक बार जैसी बंदिशें लगा कर मुझे सता रहे हो .......

दीदी की बात सुन कर मैं थोड़ा सा चौंक गया और पूछ बैठा दीदी अगर मैं पहला प्यार हूँ आपका तो विनय ....... दीदी ने मेरी बात काटते हुए कहा वो प्यार नही गलती थी मेरी जीवन की सबसे बड़ी गलती जिसका अहसास मुझे खूब अच्छे से हो चुका है अब कभी उसका नाम भी मत ले लेना मेरे आगे ......... मेरा पहला प्यार सिर्फ तुम हो और मेरा दूसरा प्यार प्रतीक है जिस से मुझे शादी इसलिए करनी पड़ेगी की तुम ऐसा चाहते हो और मैं तुमसे चाह कर भी शादी तो नही कर सकती .......

दीदी की बात सुन कर मुझे उन पर और भी प्यार आया और मैंने एक हाथ उनके फूले हुए मुलायम चूतड़ पर रख कर उसे मसलते हुए कहा ओहहह दीदी मैं आपकी तड़प आपकी चाहत और आपका अपने प्रति प्यार महसूस कर रहा हूँ ....... और आपकी बात से सहमत हूँ ठीक है मैं आज आपको उस बंदिश से आज़ाद कर देता हूँ ....... मेरी बात सुनते ही दीदी ने एकदम से मेरी गर्दन को चूम लिया और जीभ की नोक से मेरी गर्दन को गुदगुदाने लगी ....... और बोली आहह विकी लव यू सो मच ऊऊम्म्म्म्म.....



मैंने कहा लेकिन मेरी कुछ बात आपको भी माननी पड़ेगी दीदी बोली मैंने सब मान की तेरी मैंने कहा पहले सुन तो लो ...... पहली बात आपको मेरे साथ प्रतीक को भी पूरा वक़्त और अटेंशन देनी होगी मैं एकदम नही चाहूंगा कि मेरी वजह से आपका और उनका रिश्ता जुड़ने से पहले ही कमजोर हो या और कोई प्रॉब्लम हो दूसरी बात आप जो चाहो करो ....... लेकिन कभी मुझसे मेरा लंड अपनी चूत में डालने की ज़िद नही करोगी इसके सिवा आप कुछ भी करो मैं नही रोकूंगा बल्कि मैं भी बाकी सब करने के तड़प रहा हूँ ........ ये कहते हुए मैंने दीदी की गांड़ के छेद को नाइटी के ऊपर से उँगली से कुरेद दिया ........ और दीदी सिसक कर मेरे गाल पर जीभ फिराने लगी ...........



दीदी बोली पहली बात तो मैंने मान ली लेकिन दूसरी बात बहोत मुश्किल है मेरे लिए ....... मैंने कहा प्लीज दीदी उस पर सिर्फ प्रतीक का हक़ रहने दो वो पति है तुम्हारा ...... दीदी लंड के सुपाड़े से निकल रहे प्रिकम को उंगली से सुपाड़े पर मलते हुए बोली ........ पर मैं तो तुम्हें भी पति मानती हूं विकी मैंने कहा मानने और होने में फर्क होता है दीदी .......


दीदी ने बड़ी मुश्किल से सर हिला कर मेरी बात का समर्थन किया ...... फिर बोली अच्छा चलो ठीक है लेकिन ये भी मान ली तुम्हारी खुशी के लिए लेकिन आज से अकेले में तुम मुझे दीदी नही निकिता कहोगे मेरा नाम लोगे मुझे अच्छा लगता है तुम्हारे मुह से अपना नाम सुनना ...... दीदी की बात सुन कर मैं मुस्कुरा दिया और बोला ok निक्कू ...... लव यू बेबी और अपनी उंगली की हरकत तेज कर दीदी के गांड़ के छेद पर .......

दीदी ने अपनी कमर उपर उठा कर अपनी नाइटी झटके से ऊपर खींच की और मेरे हाथ और उनकी गांड़ के बीच मौजूद कपड़े का हल्का सा आवरण भी हट गया और वो वापस अपनी नंगी चूत मेरी जांघ से चिपका कर लेट गयीं और बोली ....... विक्की मेरी जान अब जी भर के खेलो मेरी नंगी गांड़ से और मैंने फिर से अपनी उंगली दीदी की गांड़ के छेद पर रख दी ........।
बहन हो तो ऐसी।
 

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मैं सीधा अपने कमरे में आ गया और दो मिनट बाद दीदी भी पीछे से आई और उनके हाथ में वो प्रतीक वाला गाउन और दूसरे हाथ मे उनके अंडर अगरमेंट्स का पैकेट था ....... दीदी ने वो दूसरा पैकेट मेरे सामने रखते हुए कहा ....... इनमें से कौन सा पहनू विकी इस गाउन के साथ ...... मैंने दोनो बॉक्स खोल कर वो अंडरगारमेंट्स बाहर निकाले हांलाकि उन्हें पसन्द मैंने ही किया था लेकिन वहां माल में उन्हें ठीक तरह से देख नही पाया था .......

एक पिंक कलर का सिल्क जैसे कपड़े का पतली डोरी वाला ब्रा पैंटी का सेट था जिसमे पैंटी पर चूत वाली जगह पर नेट लगा हुआ था ....... ब्रा के निप्पल वाली जगह पर भी नेट था .......


दूसरा एक रेड कलर का कॉटन का फ्लावर प्रिंट का सेट था इसमे भी बस डोरियां और जरा जरा सा कपड़ा था मुश्किल से निप्पल से 4 इंच के हिस्से को कवर करता और पैंटी ऐसी थी कि आगे तो नजर आती पर पीछे उसकी डोरी गांड़ की दरार में घुस कर अदृश्य हो जानी थी और गांड़ नंगी ही दिखती ........


मैंने वो दूसरी वाली ही सेलेक्ट की क्योंकि गाउन भी रेड ही था दीदी ने वो सब उठाया और जाने लगी मैंने कहा निक्की ...... उन्होंने मुड़ कर मेरी ओर देखा ...... मैंने कहा अलमारी में कुछ और भी है उन्होंने जा कर अलमारी खोली और पॉलीथिन में रखी बियर देख कर खुशी से बोली वाओ अब आएगा मज़ा ......

मैंने कहा ये प्रतीक ने मंगवाई है तुम्हारे लिए ...... दीदी बोली किसी ने मंगवाई हो क्या फर्क पड़ता है मज़ा तो मुझे ही आने वाला है उन्होंने एक बियर निकाल कर मेरी ओर उछाल दी और एक खोल कर पीते हुए अपने कमरे में चली गईं ..........


और मैं बियर पीते हुए फोन पर गूगल सर्च करने लगा girls pusy licking videos ......

सर्च करते ही ढेर सारी साइट्स ओपन हो गईं और ....... मैंने एक साइट खोल कर एक वीडियो प्ले कर दी ....... इस वीडियो में एक हट्टा कट्टा इंसान एक दुबली पतली नाजुक सी लड़की को पूरी तरह से नंगा कर के उसे एक काउच पर लिटा कर उसके हाथ और पैर रस्सियों से बांध कर उसके नंगे बदन को चूमता है चाटता है और उसके बदन से आधे घंटे तक इतना खेलता है कि वो लड़की झड़ जाती है और फिर वो उसकी चुत चाटते हुए उसका सारा जूस पी जाता है ये वीडियो देख कर मेरा लंड और बदन गरम हो चुका था ........ और मेरी बियर भी खत्म हो गयी थी ....... तभी एकदम से दरवाजा खुला और दीदी ने अंदर आ कर दरवाजा बंद कर लिया ........


उफ़्फ़फ़ दीदी क्या लग रही थीं ........ उस चटख लाल रंग एक गाउन में उनकी लंबी नंगी चमकती बाहें उनका मासूम चेहरा वो प्यारी सी मुस्कान खुले हुए लहराते बाल नाक में छोटी सी नोसरिंग और और पैरों में हाई हील ......
होंठो पर डार्क रेड लिपस्टिक आंखों में गहरा काजलऔर चेहरे पर मेकअप की हल्की सी परत उनकी खूबसूरती को और बढ़ा रही थी ........

दीदी मेरे सामने आ कर खड़ी हुई और दो बार गोल गोल घूम गयी फिर बोली कैसी लग रहीं हूँ ....... मैंने दीदी के चूतड़ पर एक हल्का स थप्पड़ लगा कर........ कहा बहोत बहोत प्यारी ...... मेरी जान .......



दीदी बोली सिर्फ प्यारी ....... मैंने कहा हां ..... वो तुनक कर बोली प्यारी तो मैं हमेशा लगती हूँ तुम्हे ...... आज कैसी लग रही हूं वो बताओ ....... मुझे अपनी गलती समझ आ गयी ........


मैंने दीदी का हाथ पकड़ कर अपनी ओर खींच लिया और उन्हें सीने से लगा कर उनकी गांड़ मसलते हुए बोला ....... आआहहहहह मेरी जान आज तो कयामत लग रही हो एकदम सेक्सी ....... देख कर ही मेरे लंड में हलचल होने लगी है ...... दिल कर रहा बस तुम्हे नंगी कर के खा जाऊं तुम्हारी रसीली चूत .......


दीदी मेरा लंड सहला कर बोली और तुम्हारा ये सख्त लंड मेरी चूत में भी तो हलचल मचा रहा है जान ....... आज मैं भी खा जाऊंगी तुम्हारा लंड ........ मैंने कहा तो फिर आज मच जाने दो हलचल .......


दीदी ने अपना फोन मुझे दिया और बोली कुछ pic ले लो प्रतीक को भेजने हैं मैंने दीदी के 10-12 अलग अलग पोज में बढ़िया से pic लिए और फिर दीदी ने अपना गाउन उतार दिया सिर्फ ब्रा पैंटी में उनका नंगा नशीला रसीला जिस्म देख कर मेरे होश उड़ गए मैंने बड़ी मुश्किल से खुद को काबू किया हुआ था ....... दीदी ने कहा विकी कुछ pic और लो ना और मैंने दीदी के 7-8 pic और लिए एक मे दीदी कमर पर हाथ रख कर खड़ी थीं दूसरी में अपनी चुंचिया हाथो में पकड़ कर तीसरी में वो कुतिया बन कर अपनी गांड़ कैमरे की ओर कर के पीछे मुड़ कर देख रही थीं ........ और चौथी में वो टांगे फैला कर बैठी और अपनी चूत पर हथेली रखी हुई थी ........


फ़ोटो सेशन करते करते मैंने दूसरी बियर भी खोल लीं और एक दीदी को दे दी दूसरी खुद पीने लगा ....... आखिर pic में दीदी एक हाथ में बियर का कैन ले कर मुह खोल कर लंबी सी जीभ निकाल कर कैन को चाटने का पोज लिए हुए थीं वो सारी सेक्सी pic देख कर मेरे लंड का तो मूड बुरी तरह खराब हो चुका था और मैं प्रतीक के बारे में सोच रहा था ..........


दीदी ने मुझसे फोन ले कर वो सारे pic देखे और संतुष्ट हो कर प्रतीक को सेंड कर दिए और लास्ट में एक टेक्स्ट मैसेज ...... little gift for my loving husband 💋


और अगले ही पल वो सारे pic सीन हो गए प्रतीक ऑनलाइन आ गए थे ...... और उन्होंने रिप्लाई किया ....... ohh jaan you are amazing ....... i am so lucky i have so hot n sexy wife ...... beautiful ....... I have no words to praise you....... you are the most beautiful girl in my life 💋💋💋 love you so much jaan .......

प्रतीक का रिप्लाई पढ़ कर हमारे चेहरे पर मुस्कान आ गईं ....... मैंने कहा दीदी जीजू तो गए काम से ...... दीदी ने बियर का घूंट भर कर कहा वो तो नही पर उनका लंड जरूर काम से जाएगा आज और हंसने लगी .......

तभी प्रतीक की काल आने लगी दीदी ने फोन रिसीव कर के स्पीकर ऑन किया और प्रतीक बोले ...... थैंक्स जान मेरी ड्रेस पहन कर मुझे अपने इस हसीन रूप का दीदार कराने के लिए ....... तुम गज्जब हो यार कमाल हो बेमिसाल हो ...... दीदी हंसते हुए बोली अब बस भी करो सारी तारीफ आज ही कर दोगे तो अगली बार क्या करोगे ....... प्रतीक बोले अगली बार इस से ज्यादा तारीफ करूंगा और हंस कर बोले जान तुम्हे देखने के बाद मुझसे ज्यादा कोई और परेशान है ...... दीदी बोली कौन ...... फिर दीदी बोली प्रतीक मुझे 5 मिनट का टाइम दो मैं सब सेट कर लूं फिर कॉल करती हूं ...... प्रतीक उतावली से बोले जानू जल्दी करो न अब एक पल भी इंतजार नही होता दीदी हंसते हुए बोली बस थोड़ा सा और मेरी जान ........ और उन्होंने फोन काट दिया .......

दीदी ने जल्दी जल्दी से अपनी बची हुई बियर खत्म की और मैंने भी कैन खाली कर के बेड के नीचे फेंक दी और फिर बैग से earbuds निकाल कर उन्हें दीदी के फोन से कनेक्ट किया और एक दीदी को दे कर कान में लगाने के बोला दूसरा मैंने लगा लिया ........


इतना सब कर के मैं कमरे के बाहर गया ऊपर एक कमरा स्टोर रूम की तरह इस्तेमाल होता था और यहाँ घर भर का फालतू समान पड़ा होता था यहां एक पुरानी रस्सी पड़ी हुई थी कपड़े सुखाने वाली जिसे मैंने अभी कुछ दिनों पहले ही बदला था .......


मैंने वो पुरानी रस्सी उठाई और कमरे में आ गया ....... मेरे हाथ मे रस्सी देख के दीदी गौर से मुझे देखने लगी और बोली ये रस्सी किसलिये ...... मैंने कहा तुम्हे बांधने के लिए ...... दीदी बोली पर बाँधोगे क्यों मुझे .....?


मैंने दीदी के होंठो को चूमते हुए कहा कोई सवाल नही मैं जो कर रहा हूँ करने दो बस मज़े लो और प्रतीक से बातें करो ....... दीदी की आंखे 2 बियर पीने के बाद नशे से सुर्ख हो रही थीं उन्होंने भी ज्यादा दिमाग ना लगाते हुए कहा ok .......


दीदी सिर्फ उस रेड कलर की छोटी सी सेक्सी ब्रा पैंटी में बेड पर लेटी हुई थीं मैंने कैंची से रस्सी चार टुकड़े किये और फिर उनके दाएं हाथ को बेड के पाए से बांध दिया और फिर दूसरे हाथ को दूसरी ओर के पाए पर बांध दिया दीदी बेड के एकदम बीच मे लेटी हुई थीं .......

फिर मैंने बारी बारी से उनके दोनो पैर भी बेड के नीचे वाले पाए के साथ बांध दिए दीदी के पैर एकदम फैले हुए थे एक दूसरे से विपरीत .......

और तभी प्रतीक का काल आने लगा मैंने फोन उठा कर कॉल रिसीव की और फोन तकिए के नीचे रख दिया .......


प्रतीक- कितनी देर लगाती हो जान जानती हो ना मैं और सब्र नही कर सकता ......


दीदी- हसंते हुए ओहहह सॉरी जानू बस जरा दरवाजा बंद कर के कपड़े उतार रही थी ...... उसी में टाइम में लग गया ......

प्रतीक- उफ़्फ़फ़ मेरी जान नंगी हो गयी क्या ......


दीदी- हां जानू तुमने कपड़े पहने हुए हैं क्या .......

प्रतीक- ज्यादा नही सिर्फ अंडरवियर पहन रखा है .......

दीदी- उसे भी उतार दो न ...... जान .....

प्रतीक- मैंने सोचा उसे तुम उतार देती तो ......

दीदी- आहह जान अभी तो तुम्हे ही उतारना पड़ेगा ...... लेकिन जब मैं आ जाऊंगी तो रोज मैं ही उतारूंगी ......


प्रतीक- तुम आ जाओगी ना तो दो चार महीने तो मैं तुम्हे ना कपड़े पहनने दूंगा न खुद पहनूंगा ......

दीदी- हाय्य्य्य तो क्या मुझे हमेशा नंगी रखोगे .......

प्रतीक - और क्या जी भर के देखूंगा तुम्हारा नंगा बदन ....... और बस दिन रात तुम्हारी ........

दीदी- मेरी क्या बोलो ना जान .......


प्रतीक- दिन रात तुम्हारी चुदाई करूंगा जान आआहहहहहह .......


दीदी- उफ़्फ़फ़ जान दिन रात चोदोगे मुझे ......

प्रतीक- हां रानी तुम्हे नंगी देख कर तो सब्र करना मुश्किल ही होगा ......
जान मैंने अपना अंडरवियर भी निकाल दिया है एकदम नंगा हो गया हूँ ...... उफ़्फ़फ़ मेरा लंड एकदम सख्त हो रहा है ......

दीदी- आपने तो अपना लंड भी नही दिखाया मुझे अब तक ........

प्रतीक- तुम्हे कैसा लंड चाहिए निक्की ......

दीदी- बस एकदम सख्त और गरम जिसे चूसने और चुदने में मज़ा आये ...... ऊफफफ कितनी गन्दी बातें करने लगी मैं पता नही आप क्या सोचेंगे मेरे बारे में .......


प्रतीक- मेरी जान मैं कुछ सोच नही रहा बस खुश हूं और एन्जॉय कर रहा हूँ ....... मुझे ऐसी ही सेक्सी और समझदार बीवी चाहिएत थी जो खुल के जिंदगी के मज़े लेना जानती हो ...... वो टिपिकल शर्मीली टाइप बीवी नही चाहिए थी मुझे ......


दीदी- उफ़्फ़फ़ जान पर मैं भी शर्मीली ही हूँ ........


प्रतीक- जान तुम जैसी भी हो मुझे बेहद पसंद हो बाकी तुम्हे बेशर्म बनाना मेरा काम है वो मैं कर ही लूंगा.......

मैं मज़े से उन दोनों का वार्तालाप सुनते हुए बेड पर दीदी के बगल में लेट गया दीदी मेरी आंखों में देखते हुए बोली ........

उफ़्फ़फ़ आप मुझे बेशर्म बनाओगे अपनी बीवी को .......


प्रतीक- हां जान शादी तक मुझे तुम्हे एकदम बेशर्म और सेक्सी बना देना है ताकि सुहागरात को तुम पूरी तरह से चुदाई का मज़ा ले सको ......., मेरे कई दोस्तों ने बताया की शादी के बाद 10-15 दिन वो चुदाई कर ही नही पाए क्योंकि उनकी बीवी बहोत शर्मीली थी .......



दीदी- ok जानू बना दो मुझे एकदम बेशर्म .......


प्रतीक- तुम्हे लंड चूसना अच्छा लगता है निकी .......?

दीदी- हां मेरी जान मुझे लंड चूसना पसन्द है और मैं आपका लंड बड़े प्यार से चूसूँगी ......

.प्रतीक- aaahhhh जानू मैं मुठ मार रहा हूँ काश तुम मेरे पास होती तो तुम्हारे मुलायम हाथों से मुठ मरवाने में कितना मज़ा आता .......

दीदी- हंसते हुए बोली ....... मैं होती तो भी मुठ मरवाते क्या जान ......

प्रतीक को अपनी बेवकूफी भरी बात का अहसास हुआ तो वो बोले ....... मेरा मतलब है कि तुमसे मुठ मरवाता फिर अपना लंड तुम्हारे मुह में दे कर चुसवाता और फिर तुम्हे अपने लंड पर बिठा कर जी भर के चोदता ....... जब तक तुम अपनी रसीली बुर का पानी मेरे लंड पर ना टपका देती .......

.दीदी- aaahhhh जान तुम्हारी बातों से ही मेरी बुर पानी टपका रही है पता नही जब तुम अपना लंड डाल कर मुझे चोदोगे तो क्या होगा ........


प्रतीक- मज़ा आएगा मेरी जान बहोत मज़ा आएगा ...... जितना मज़ा अभी तुम्हे उंगली करने में आता है उस से भी हजार गुना ज्यादा मज़ा आएगा ........

दीदी- उफ़्फ़फ़ प्रतीक........ अब अपना लंड दे भी दो मेरे मुह में ...... मुझे चूसना है तुम्हारा मस्त लंड......

प्रतीक- पता है निक्की जब मैंने पहली बार तुम्हे सामने से देखा तो मेरे मन मे क्या ख्याल आया ......


दीदी- मुझे कैसे पता होगा ....... बताओ ना .......


प्रतीक- मैंने तुम्हे देखा तो मुझे सबसे ज्यादा तुम्हारे सुर्ख रसीले होंठ अच्छे लगे और मैं सोचने लगा काश एक बार इन्हें चूस लूं जी भर के फिर मर भी जाऊं तो कोई बात नही ........


दीदी- ऐसी फालतू की बातें मत करिएगा दोबारा , मरें आपके दुश्मन और ये रसीले होंठ अब आपको रोज जी भर के चूसने को मिलेंगे ...... और ये रसीले होंठ आपका रसीला लंड भी चूसेंगे .......


प्रतीक- ऊफफ जान और फिर तुम्हारे होंठ देखने के बाद मुझे बस ये ख्याल आया कि जिसके होंठ इतने रसीले हैं उसकी बुर कितनी रसीली होगी ...... और उसे चूस चूस कर उस बुर का रस पीने में कितना मज़ा आएगा ........


ये बातें सुन कर मेरा भी लंड बेकाबू होने लगा था ....... और मैंने अपने हाथों पर झुक कर दीदी के चेहरे पर अपनी जीभ फिरानी शुरू कर दी और दीदी के गले से हल्की सिसकारियां निकलने लगी ....... और वो बोली ....... aaahhhhhh sssssss प्रतीक मेरी रसीली बुर जी भर के चाटना मेरी जान एक बार मुझे आने दो फिर रोज तुम्हे नंगी हो के अपनी बुर चटवाऊंगी तुम्हारे मुह पर बैठ कर ........

(अब दीदी बियर और सेक्स के नशे में चूर हो कर रंग में आ रही थीं और सिर्फ वो क्यों हम तीनो का वही हाल था)


मेरी जीभ उनके गालों पर नाक पर कान पर कान के निचले हिस्से से होते हुए गर्दन तक घूम रही थी और दीदी की आहें और सांसे भारी होती जा रही थीं .........

प्रतीक- ओहह जान सिर्फ बुर नही मुझे तो एक एक अंग चाटना है तुम्हारा तुम्हारी आर्मपिट की स्मेल लेनी है मुझे ...... उफ़्फ़फ़ कैसी खुशबू होगी तुम्हारे बदन की .......


दीदी- हां जान मेरा एक एक अंग चाटना चूसना ...... मेरी चुत के साथ मेरी गांड़ भी चाटना जानू वो भी पसन्द आयेगी तुम्हे ........

मैं दीदी की गर्दन से चाटते हुए उनके होंठो तक आया और फिर होंठो को 3-4 सेकेंड के लिए मुह में दबा कर चूसा और दीदी ने एकदम से जीभ निकाल कर मेरी जीभ को चाट लिया ......., दीदी हद से ज्यादा गर्म हो चुकी थीं ........ और मैं दीदी की लंबी सुतवां नाक को चाटने लगा और फिर उनकी नाक को मुह में भर कर चूसने लगा ........ दीदी के मुह और नाक से भाप सी निकल रही थी ........

प्रतीक- आहह मेरी रानी निक्की मैं तो तुम्हारी गांड़ के छेद में जीभ डाल डाल कर अंदर तक चाटूँगा जान ...... निक्की मेरा एक कहना मानोगी प्लीज ........


दीदी- iiisshhhhh ....... uufffff हां बोलो ना जानू तुम्हारी हर बात मानूँगी मैं ........ तुम जो कहो सब मंजूर है मुझे .......


और मैंने इसी के साथ दीदी को नाक चूसना छोड़ कर अपनी जीभ उनकी नाक के छेद में डाल दी और चाटने लगा ..... दीदी मेरी इस हरकत से बावली हो गईं और तेजी से सिसियाने लगी ...........


प्रतीक- जानू आज से ले कर हमारी शादी तक तुम अपनी चूत और आर्मपिट के बाल नही हटाओगी मुझे घनी झांटो वाली चूत बहोत पसन्द है रानी ......., झांट वाली चूत देख कर ही मेरे मुह में पानी आ जाता है ......... बस शादी के वक़्त पार्लर जाना तो सेट करवा लेना अपनी झांटे .........


दीदी- उफ़्फ़फ़ मेरी जान जैसा तुम चाहो मैं आज के बाद कभी अपने बाल नही साफ करूंगी और रोज अपने पति को अपनी झांटो वाली रसीली चूत चटा दिया करूंगी ......... और कोई इच्छा हो तो बताओ जानू .........


मैंने बारी बारी से दीदी के नाक के दोनो छेद चाटे अंदर तक जीभ डाल के और फिर नीचे सरक कर दीदी के नंगे पेट को चूमने लगा ....... मेरी गर्म सांसे अपने पेट पर महसूस कर के दीदी रेत पर पड़ी मछली जैसे तड़पने लगी और अपने चूतड़ उठाने लगी .......

प्रतीक- aaahhhh निकी फिलहाल तो यही एक इच्छा थी बाकी एक बार मिलो तो सही सारी इच्छाएं पूरी करूंगा एक एक कर के ....... तुम्हारी कोई इच्छा हो तो बताओ जानू ........,


दीदी- नशे और मस्ती में सिसियाते हुए बड़बड़ाई आहह जान ......, मुझे तो अपने निप्पल चुसवाते हुए अपनी बुर में उंगली करना बड़ा अच्छा लगता है पूरे बदन में करंट सा दौड़ता है और बुर पानी बहा देती है मेरी ........


प्रतीक- ओहहह जान मैं तो तुम्हारे निप्पल काट काट कर चुसूंगा और चूसते अपना लंड तुम्हारी बुर में धक्के मार मार के पेलूँगा जानू जब तक तुम झड़ नही जाती........



मैं दीदी के पेट को जीभ निकाल कर चाटने लगा था और दीदी के बदन का एक एक रोयां खड़ा हो गया था और फिर मैं दीदी की नाभि में जीभ डाल कर चूसने लगा ......, दीदी की नाभि चूसते हुए मैंने एक हाथ पैंटी के दो इंच कपड़े में ढकी हुई उनकी चूत पर रखा और दीदी की गरम दहकती हुई बुर को मुट्ठी में भर कर जोर से मसल दिया ....... और दीदी के मुह से तेज आहह निकली ......... और वो बोली उफ़्फ़फ़ ऐसे ही मसलो ......... और जोर से पी लो मेरी नंगी चुंचिया राजा चोद दो ना अब ...... aaaahhhh


प्रतीक- ओहहह जान चूस रहा हूँ तुम्हारे निप्पल मुह में ले कर दांतों से काट रहा हूँ ......... और अपना गरम लंड तुम्हारी नंगी गीली बुर में रगड़ रहा हूँ ......... उफ़्फ़फ़ निक्की कितनी चिकनी बुर है तुम्हारी .......


दीदी- हां प्रतीक ऐसे ही चुसो काटो खा जाओ मेरे चूचे और पेल दो अपना मोटा लंड मेरी बुर में चोद लो अपनी होने वाली बीवी को शादी के पहले ही सुहागरात मना लो राजा ....... aaahhhh कितना मज़ा आ रहा है आज उंगली करने में ही .......


मैंने दीदी की पैंटी की रेशमी डोरी पकड़ी और खींच दी एक ओर की गांठ खुल गयी और मैंने दीदी के नरम पेट पर हाथ फिराते हुए अपना हाथ उनकी ढीली हो चुकी पैंटी में घुसा कर उनकी बुर को सहलाया बुर के होंठ बुरी तरह से गीले थे उन पर चिकना रस लगा हुआ था मेरी उँगलियां भीग गयी और मैंने एकदम से अपनी मोटी उंगली दीदी की बुर में पेल दी ....... दीदी सिसक उठी ........ और अपना निचला होंठ दांत से काटते हुए अपनी गांड़ हवा में उठाने लगीं ...........

मैं धीरे धीरे अपनी उंगली उनकी बुर में अंदर बाहर करने लगा और फिर मैंने वो उंगली दीदी की बुर से निकाल कर उन्हें दिखाते हुए अपने मुह में डाल कर चूस ली ऊऊम्म्म्म्म क्या स्वाद था दीदी की बुर का ........ मुझसे रहा नही गया और मैंने दीदी की पैंटी की दूसरी गांठ तेजी से खोल कर उसे एक झटके
से उनके बदन से अलग कर दिया और दीदी की टांगो के बीच लेटते हुए दोनो हाथो से उनकी बुर फैला दी और अपने होंठ बुर के अंदरूनी हिस्से पर रख कर चूमते हुए बुर को मुह में दबोच कर चूसना शुरू कर दिया ........, दीदी हाय हाय करने लगी ...... बेड पर बंधी हुई तड़पने लगी अपने बदन को झटके देने लगी ........... और अपनी कमर को तेजी से उछालने लगी ........


प्रतीक- ओहहह जान अब तो लग रहा है बस अभी उड़ कर आ जाऊं तुम्हारे पास और पेल दूँ अपना लंड तुम्हारी बुर में और बस दनादन धक्के मार मार कर चोद दूँ तुम्हे और झड़ जाऊं तुम्हारी बुर की गहराइयों में aaahhhhh रानी ये लो मैं गया ......, ऊफफफ चूस लो मेरे लंड का रस जान पी लो मेरा वीर्य ........


दीदी- हाय्य्य्य राजा झड़ जाओ...... निकाल दो अपने लंड का गरम रस मेरे मुह में ........पिला दो जानू बहोत प्यासी हूँ मैं ....... aaahhhh ऊऊम्म्ममम्म ........


प्रतीक- हांफते हुए बोले बहोत सेक्सी हो जान मैं पहली बार इतनी जल्दी झड़ा हूँ मुठ मारते हुए वरना आधे घंटे से पहले कभी नही होता मेरा .......


दीदी- कोई नही जान पर बहोत मज़ा आया सच मे आज ...... तुम झड़ गए हो तो एक pic दिखाओ ना अपने लंड की मुझे देखना है कितना पानी निकाला है तुमने ......


प्रतीक- जान मैं वीडियो कॉल कर के दिखाता हूँ ......

दीदी- नही ना वीडियो कॉल नही मुझे शर्म आएगी अभी pic दिखा दो वीडियो कॉल अगली बार ......


प्रतीक- ok जान और फिर काल कट गई और कटते ही मैंने अपनी जीभ लंबी सी निकाली और दीदी की बुर की गहराई तक उतार कर घुमा घुमा कर दीदी की बुर अंदर तक चाटने लगा ...... दीदी बोली विकी मेरे हाथ खोल दी प्लीज मैं मर जाऊंगी आज aaahhhhh इतना मज़ा आ रहा है ..........


मैंने दोनो हाथ ऊपर उठा कर दीदी के चूचो को पकड़ लिया और ब्रा के मुलायम कपड़े के ऊपर से सहलाने लगा और कहा ...... दीदी बस मज़े लो मेरी जान मरने तो मैं आपको दूंगा नही बस आपकी चूत का रस निकाल दूंगा.....
.

तभी दीदी के फोन पर मैसेज टोन बजी मैंने देखा तो प्रतीक ने अपने लंड की 4-5 pic भेजी थी ...... अलग अलग एंगल से मैंने pic फुल स्क्रीन कर के दीदी को दिखाई .......


प्रतीक का 8 इंच का मस्त मोटा लंड गुलाबी मोटा सुपाड़ा और फूले हुए
आंड़ देख कर दीदी बोली उफ़्फ़फ़ कितना मस्त लंड है बड़े मजे देगा मैंने pic को स्क्रोल किया तो अगली pic आ गयी ये सिर्फ सुपाड़े का क्लोजअप था दीदी उसे देख कर होंठ चाटती हुई बोली aahahh चूसने में मज़ा आएगा इसे .......


अगली pic में लंड के साथ प्रतीक के पेट पर पड़ी हुई वीर्य की मोटी मोटी लकीरें दिख रही थीं ........ कम से कम 10 चम्मच गाढ़ा मलाई जैसा वीर्य उसके पेट पर बिखरा पड़ा दीदी बोली उफ़्फ़फ़ इतने में तो मेरा पेट भर जाएगा .........

तभी फिर से प्रतीक की कॉल आ गयी मैंने कॉल रिसीव की .......


प्रतीक- देखा जान कैसा लगा .......


दीदी- हाय्य्य्य कितना मस्त लंड है आपका मेरे मुह में तो पानी आ गया ....... और कितना गाढ़ा है आपका वीर्य मैं तो रोज चूस चूस के पियूंगी आपके लंड का रस ..........


प्रतीक चलो जान तुम भी जल्दी से कर लो अब ....... दीदी ओहहह जानू मेरा तो कब का हो गया तुमसे बात करते हुए कितना मज़ा आया आज सच मे ......

प्रतीक- सच मे तुम्हारा हुआ ना ......


दीदी - हां जानू झूठ क्यों बोलूंगी......

प्रतीक- ok जान लव यू सो मच ......


दीदी- प्रतीक एक बात पुछू ......?

प्रतीक- हां पूछो ना ......


दीदी- मुझसे मिलने के पहले भी तुम मुठ मारते थे ......?

प्रतीक- हां ..... मारता था मैं तो 17 साल की उम्र से मुठ मार रहा हूँ .......


दीदी- अच्छा जी 17 से ही शुरू हो गए थे .......


प्रतीक- हां जान मेरे दोस्त ने मुझे पोर्न दिखाई अपने घर पर और उसी दिन मैंने पहली बार मुठ मारा .......


मैं अब चुपचाप लेट कर लंड सहलाते हुए दीदी का वार्तालाप सुन रहा था.........

दीदी- ह्म्म्म अच्छा ये बताओ तुमने पहली बार किस के बारे में सोच कर मुठ मारी थी........


प्रतीक ने कोई जवाब नही दिया......


दीदी- बोलो न जान बताओ ना किस लड़की के बारे में सोच कर मुठ मारी थी तुमने .......?


प्रतीक- जान प्लीज ये सवाल पास कर देते हैं झूठ मैं बोलना नही चाहता और सच मैं बोल नही पाऊंगा .......


दीदी- अरे ऐसा कौन है की तुम उसका नाम नही ले पा रहे और झूठ बोलने को तो मैं कह भी नही रही ......., बता दो ना मैं फिर मैं भी बताऊंगी ........ या पहले मैं ही बताती हूँ ........ मुझे ना अनिल कपूर बहोत अच्छा लगता था बचपन से ही मैं उसकी हर मूवी कई कई बार देखती थी फिर जब मैं 16 की थी तब उसकी बेटा मूवी देखी उसमे वो गाना है ना धक धक करने लगा उसमे उसकी परफॉर्मेंस देख कर उस रात मैंने पहली बार उसके बारे में सोच कर अपनी चूत रगड़ रगड़ कर लाइफ का पहला ऑर्गेज्म फील किया था ....... उसके बाद कई साल तक मैं उसी के बारे में सोचती रही ........ और उंगली करती रही.........

(दीदी की बात सच थी क्योंकि अनिल कपूर उनका फेवरेट हीरो था)

अब तो बता दो जानू अगर कोई प्रॉब्लम ना हो तो ........


प्रतीक- मेरी जान इस के अलावा कोई भी सवाल पूछ लो ना मैं बता दूंगा ......


दीदी- नही और तो कोई सवाल नही है ......, अच्छा चलो फिर सोते हैं काफी देर हो गयी बात करते हुए........


प्रतीक- अरे गुस्सा मत हो जान ....... अच्छा मैं बता दूंगा किसी दिन पर आज नही प्लीज .......

दीदी- its ok मैं गुस्सा नही हूँ यार ......, जब मन हो बता देना और परेशान ना हो कोई भी हो मैं गुस्सा नही करूंगी बस मुझे जानने की उत्सुकता है कि वो कौन लड़की है जिसने पहली बार मेरे प्रतीक का लंड खड़ा किया था ........


प्रतीक- ok जान बता दूंगा किसी दिन ......, ठीक है चलो अब सोया जाए ........, लेकिन सच मे आज का दिन यादगार रहा मेरी लाइफ का फोन सेक्स पहले भी कई बार किया है मैंने पर वो सब शर्मीली लड़कियां है बार बार कहने के बाद भी खुल कर नही बोलती ........ आज का एक्सपीरियंस बेस्ट है मेरी लाइफ का ......., लव यू निक्की ..... बहोत प्यार आ रहा है तुम पर .......


दीदी- मुझे भी जान लव यू सो मच गुड नाईट मेरे राजा ....... bye .....

और फोन कट गया ........

फोन कटते ही दीदी बोली विकी अब और बर्दाश्त नही हो रहा राजा कैसे भी मेरी बुर का पानी निकालना है मुझे मैंने कहा जो हुक्म मेरी जान और मैंने फिर से पोजिशन ले कर ..... दीदी के दोनो चुचियो को सहलाते हुए जीभ से उनकी बुर का दाना चाटना शुरू कर दिया दाने पर जीभ का स्पर्श पा कर दीदी बोली रगड़ कर चाटो ना जानू एकदम से चबा कर खा जाओ इस निगोड़ी मेरी बुर को aaahhhhh और मैं पूरी जीभ को दीदी की बुर पर रगड़ रगड़ कर उनकी बुर चाटने लगा ........ बुर चाटते हुए मैंने ब्रा की भी डोरी खींच ली और दीदी के चूचे नंगे कर के उनके तन कर खड़े हुए निप्पल्स को चुटकी में पकड़ कर मींजते हुए अपनी जीभ लंड जैसे कड़ी कर के बुर में घुसा दी और गोल गोल घुमा कर चाटने लगा दीदी बोली आहहहहहहससससससईईईईईई ऐसे ही चाटो राजा बस झड़ जाएगी मेरी बुर और अपनी गांड़ उठा उठा कर अपनी बुर मेरे मुह में ठेलते हुए चटवाने लगी .........



और मैंने जीभ को बुर में घुमाते हुए उनके पेशाब वाले छेद को जीभ से कुरेदना शुरू कर दिया अगले ही पल वो और जोर से छटपटाने लगी अपना सर पटकते हुए सिसक उठी और बोली हाय्य्य्य विकास मेरे भाई कितने मज़े दे रहा है तू मेरी चूत का अब चोद दे ना अपनी दीदी की बुर ........

मैंने एकदम से दाँत गड़ा कर काट लिया दीदी की बुर पर और उनके निप्पल तेजी से खींचते हुए उमेठ दिए और दीदी की बुर से फलफला कर मीठा रस बहने लगा टपकने लगा और मैं उसे चाट चाट के चूस चूस के पीता रहा ........


एक एक बूंद चूसने के बाद मैंने जीभ बुर से निकाली और दीदी की बुर से जीभ फिराते हुए उनकी गांड़ के कसे हुसे नन्हे से छेद को चूमा और चाटने लगा दीदी बोली अब बस करो और बर्दाश्त नही होगा प्लीज उनकी सांसे अभी भी तेज थीं ........

मैं उठ बैठा उनकी टांगों के बीच दीदी मेरी ओर देखते हुए मुस्कुरा कर बोली मेरे लिये तो फैसला करना मुश्किल है कि मेरा पति ज्यादा सेक्सी है या मेरा भाई .......


लेकिन इतना तय है मैं मायके में रहूं या ससुराल में मेरी बुर कभी प्यासी नही रहेगी ........ अब या तो मेरे हाथ खोल दे जल्दी से या अपना लंड मेरे मुह में दे दे मुझे भी लौड़े का रस पीना है अब ..........


मैं दीदी के पास उनके सर के बगल में घुटनो पर बैठ गया और अपना खड़ा लंड दीदी के चेहरे पर रगड़ने लगा उनके गालों पर माथे पर होंठो पर और फिर मैंने लंड की स्किन पीछे सरका कर सुपाड़ा खोला और गरम सुपाड़ा दीदी की नाक पर रगड़ने लगा .........


और दीदी मेरी आँखों मे देखते हुए गहरी सांस ले कर जैसे मेरे लंड को सूँघने सी लगी ....... दीदी की इस हरकत से मेरे लंड के सुपाड़े पर चिकने रस की कुछ बूंदे छलछला गयीं ....... नाक पर उसकी चिकनाहट महसूस कर के दीदी ने सर ऊपर उठाते हुए सुपाड़े पर अपनी रसीली जीभ फिरा दी और उस रस को चाट कर चटकारा लिया ........ और फिर मैंने अपना सुपाड़ा उनके होंठो पर रगड़ना शुरू कर दिया उनकी लिपस्टिक का रंग मेरे गुलाबी सुपाड़े को और सुर्ख करने लगा ..........


दीदी ने एकदम से मुह खोल दिया और मैंने देर ना करते हुए अपना सुपाड़ा उनके होंठो के बीच सरकाया और दीदी उसे रसगुल्ले जैसे चूसने लगी ....... ..

5 मिनट तक लंड चूसने के बाद दीदी बोली विकी मेरी जान आज मुझे कुछ भी नही करने दोगे क्या .... बहुत हुआ अब खोल भी दो ना ...... मुझे अपने मन की भी करनी है अब ....... और मैंने दीदी को हाथो की गांठ खोल दी हाथ खुलते ही दीदी उठ बैठी और अपने पैर खोलने लगी ........

एकदम आज़ाद हो कर उन्होंने मुझे धक्का दे कर बेड पर लिटा दिया और मुझ पर झुकते हुए किसी भूखी शेरनी की तरह मेरे होंठो को चूसते हुए मेरे लंड को मुठ मारने लगी ...... उनकी जीभ अब मेरे मुह के अंदर घूम रही थी और उनका मीठा मीठा शहद जैसा थूक मेरे मुह में घुल रहा था जिसे मैं चूस रहा था निगल रहा था .........

और फिर दीदी की जीभ मेरे बदन अपर घूमती हुई मेरे सीने पर मेरे निप्पल के चारो ओर घूमने लगी और मैं पागल सा होने लगा बस अब मैं अपने लंड से ढेर सारा गरम वीर्य उगलना चाहता था मेरे आंड़ के अंदर हलचल तेज होने लगी थी ...... .


दीदी ने मेरे छोटे छोटे निप्पल को अपनी नरम जीभ से चाटा और फिर हल्के से दाँत चुभो दिए मैं सिसक उठा ..............


उफ़्फ़फ़ निकिता जान ले लोगी क्या मेरी ... . दीदी ने और नीचे आ कर मेरा लंड हाथ मे पकड़ कर मसलते हुए नीचे लटक रहे आंड़ पर जीभ फिराई और बोली लेना तो तेरा मस्त लंड चाहती हूं अपनी बुर में लेकिन तू देता ही नही ........

मैंने कहा उसके अलावा तो सब दे रहा हूँ जान और कितना मज़ा लेना चाहती हो कोई कमी हो तो बोलो वो भी पूरी कर देता हूँ .. ......


दीदी ने बड़ा सा मुह खोल कर दोनो आंड़ एक साथ मुह में भर लिए और चूसने लगी साथ ही वो लंड पर तेजी से हाथ भी चला रही थी ....... मुझे एक पल को लगा नेहा जैसी पेशेवर रण्डी भी इतना मस्त लंड ना चूस पाए शायद ......


दीदी ने कुछ सेकेंड मुझे हवा में उड़ाने के बाद जमीन पर लैंड कराते हुए मुह से आंड़ निकाले और बोली कोई कमी नही है जानू इतना सुख तो शायद चुदाई में भी ना मिले जितना तुम देते हो मुझे ....... और फिर से सुपाड़े को चाटने लगी मुझसे रहा नही गया और मैंने एक हाथ दीदी के हाथ के ऊपर से अपने लंड पर रखा और पूरी तेजी से उसे मुठियाने लगा .........


दीदी भी मेरा साथ देते हुए लंड को मुठ मारते हुए मेरे सुपाड़े के छेद को जीभ की नोक से कुरेदते हुए चाटने लगी और एक झटके से मेरे सुपाड़े के छेद से एक एक तेज धार निकली गाढ़े गर्म वीर्य की और दीदी की जीभ को तर करती हुई उनके हलक से जा टकराई .......



दीदी चौंक गयीं लेकिन अगले ही पल सम्हलती हुई सुपाड़े के नीचे जीभ लगा कर आने वाली अगली धार को अपनी जीभ पर ही समेट कर लपर लपर करती हुई जीभ चला कर बहता हुआ वीर्य चाटने लगी कुछ बूंदे उड़ती हुई उनकी नाक और गालों पर चमक रही थी और एक बूंद उनकी नोजरिंग में जा कर फंस गई जो रोशनी में किसी हीरे जैसे चमक रही थी ........


एक के बाद एक आती हुई बौछारों को दीदी तब तक चूसती रही जब तक आखिरी बून्द तक नही टपक गयी ..........., और फिर गहरी सांस लेती हुई दीदी मेरी बगल में लेट गयी दरवाजा बंद ही था तो मैंने भी दीदी को पीछे से बाहों में भर कर अपना एक हाथ उनकी नंगी चूची पर रख कर उसे मुट्ठी में भर लिया और पीछे से अपना झड़ा हुआ लंड जो झड़ कर भी किसी खूंटे जैसा ही सख्त था को दीदी के चूतड़ों की गहरी दरार में फंसा कर लेट गया और जल्दी ही हम नींद के आगोश में डूब गए ........।
वाह क्या मस्त लिखते हो भाई अपनी लिखी सभी कहानियों की लिस्ट भेजना।
 

Sis lover

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मैं सीधा अपने कमरे में आ गया और दो मिनट बाद दीदी भी पीछे से आई और उनके हाथ में वो प्रतीक वाला गाउन और दूसरे हाथ मे उनके अंडर अगरमेंट्स का पैकेट था ....... दीदी ने वो दूसरा पैकेट मेरे सामने रखते हुए कहा ....... इनमें से कौन सा पहनू विकी इस गाउन के साथ ...... मैंने दोनो बॉक्स खोल कर वो अंडरगारमेंट्स बाहर निकाले हांलाकि उन्हें पसन्द मैंने ही किया था लेकिन वहां माल में उन्हें ठीक तरह से देख नही पाया था .......

एक पिंक कलर का सिल्क जैसे कपड़े का पतली डोरी वाला ब्रा पैंटी का सेट था जिसमे पैंटी पर चूत वाली जगह पर नेट लगा हुआ था ....... ब्रा के निप्पल वाली जगह पर भी नेट था .......


दूसरा एक रेड कलर का कॉटन का फ्लावर प्रिंट का सेट था इसमे भी बस डोरियां और जरा जरा सा कपड़ा था मुश्किल से निप्पल से 4 इंच के हिस्से को कवर करता और पैंटी ऐसी थी कि आगे तो नजर आती पर पीछे उसकी डोरी गांड़ की दरार में घुस कर अदृश्य हो जानी थी और गांड़ नंगी ही दिखती ........


मैंने वो दूसरी वाली ही सेलेक्ट की क्योंकि गाउन भी रेड ही था दीदी ने वो सब उठाया और जाने लगी मैंने कहा निक्की ...... उन्होंने मुड़ कर मेरी ओर देखा ...... मैंने कहा अलमारी में कुछ और भी है उन्होंने जा कर अलमारी खोली और पॉलीथिन में रखी बियर देख कर खुशी से बोली वाओ अब आएगा मज़ा ......

मैंने कहा ये प्रतीक ने मंगवाई है तुम्हारे लिए ...... दीदी बोली किसी ने मंगवाई हो क्या फर्क पड़ता है मज़ा तो मुझे ही आने वाला है उन्होंने एक बियर निकाल कर मेरी ओर उछाल दी और एक खोल कर पीते हुए अपने कमरे में चली गईं ..........


और मैं बियर पीते हुए फोन पर गूगल सर्च करने लगा girls pusy licking videos ......

सर्च करते ही ढेर सारी साइट्स ओपन हो गईं और ....... मैंने एक साइट खोल कर एक वीडियो प्ले कर दी ....... इस वीडियो में एक हट्टा कट्टा इंसान एक दुबली पतली नाजुक सी लड़की को पूरी तरह से नंगा कर के उसे एक काउच पर लिटा कर उसके हाथ और पैर रस्सियों से बांध कर उसके नंगे बदन को चूमता है चाटता है और उसके बदन से आधे घंटे तक इतना खेलता है कि वो लड़की झड़ जाती है और फिर वो उसकी चुत चाटते हुए उसका सारा जूस पी जाता है ये वीडियो देख कर मेरा लंड और बदन गरम हो चुका था ........ और मेरी बियर भी खत्म हो गयी थी ....... तभी एकदम से दरवाजा खुला और दीदी ने अंदर आ कर दरवाजा बंद कर लिया ........


उफ़्फ़फ़ दीदी क्या लग रही थीं ........ उस चटख लाल रंग एक गाउन में उनकी लंबी नंगी चमकती बाहें उनका मासूम चेहरा वो प्यारी सी मुस्कान खुले हुए लहराते बाल नाक में छोटी सी नोसरिंग और और पैरों में हाई हील ......
होंठो पर डार्क रेड लिपस्टिक आंखों में गहरा काजलऔर चेहरे पर मेकअप की हल्की सी परत उनकी खूबसूरती को और बढ़ा रही थी ........

दीदी मेरे सामने आ कर खड़ी हुई और दो बार गोल गोल घूम गयी फिर बोली कैसी लग रहीं हूँ ....... मैंने दीदी के चूतड़ पर एक हल्का स थप्पड़ लगा कर........ कहा बहोत बहोत प्यारी ...... मेरी जान .......



दीदी बोली सिर्फ प्यारी ....... मैंने कहा हां ..... वो तुनक कर बोली प्यारी तो मैं हमेशा लगती हूँ तुम्हे ...... आज कैसी लग रही हूं वो बताओ ....... मुझे अपनी गलती समझ आ गयी ........


मैंने दीदी का हाथ पकड़ कर अपनी ओर खींच लिया और उन्हें सीने से लगा कर उनकी गांड़ मसलते हुए बोला ....... आआहहहहह मेरी जान आज तो कयामत लग रही हो एकदम सेक्सी ....... देख कर ही मेरे लंड में हलचल होने लगी है ...... दिल कर रहा बस तुम्हे नंगी कर के खा जाऊं तुम्हारी रसीली चूत .......


दीदी मेरा लंड सहला कर बोली और तुम्हारा ये सख्त लंड मेरी चूत में भी तो हलचल मचा रहा है जान ....... आज मैं भी खा जाऊंगी तुम्हारा लंड ........ मैंने कहा तो फिर आज मच जाने दो हलचल .......


दीदी ने अपना फोन मुझे दिया और बोली कुछ pic ले लो प्रतीक को भेजने हैं मैंने दीदी के 10-12 अलग अलग पोज में बढ़िया से pic लिए और फिर दीदी ने अपना गाउन उतार दिया सिर्फ ब्रा पैंटी में उनका नंगा नशीला रसीला जिस्म देख कर मेरे होश उड़ गए मैंने बड़ी मुश्किल से खुद को काबू किया हुआ था ....... दीदी ने कहा विकी कुछ pic और लो ना और मैंने दीदी के 7-8 pic और लिए एक मे दीदी कमर पर हाथ रख कर खड़ी थीं दूसरी में अपनी चुंचिया हाथो में पकड़ कर तीसरी में वो कुतिया बन कर अपनी गांड़ कैमरे की ओर कर के पीछे मुड़ कर देख रही थीं ........ और चौथी में वो टांगे फैला कर बैठी और अपनी चूत पर हथेली रखी हुई थी ........


फ़ोटो सेशन करते करते मैंने दूसरी बियर भी खोल लीं और एक दीदी को दे दी दूसरी खुद पीने लगा ....... आखिर pic में दीदी एक हाथ में बियर का कैन ले कर मुह खोल कर लंबी सी जीभ निकाल कर कैन को चाटने का पोज लिए हुए थीं वो सारी सेक्सी pic देख कर मेरे लंड का तो मूड बुरी तरह खराब हो चुका था और मैं प्रतीक के बारे में सोच रहा था ..........


दीदी ने मुझसे फोन ले कर वो सारे pic देखे और संतुष्ट हो कर प्रतीक को सेंड कर दिए और लास्ट में एक टेक्स्ट मैसेज ...... little gift for my loving husband 💋


और अगले ही पल वो सारे pic सीन हो गए प्रतीक ऑनलाइन आ गए थे ...... और उन्होंने रिप्लाई किया ....... ohh jaan you are amazing ....... i am so lucky i have so hot n sexy wife ...... beautiful ....... I have no words to praise you....... you are the most beautiful girl in my life 💋💋💋 love you so much jaan .......

प्रतीक का रिप्लाई पढ़ कर हमारे चेहरे पर मुस्कान आ गईं ....... मैंने कहा दीदी जीजू तो गए काम से ...... दीदी ने बियर का घूंट भर कर कहा वो तो नही पर उनका लंड जरूर काम से जाएगा आज और हंसने लगी .......

तभी प्रतीक की काल आने लगी दीदी ने फोन रिसीव कर के स्पीकर ऑन किया और प्रतीक बोले ...... थैंक्स जान मेरी ड्रेस पहन कर मुझे अपने इस हसीन रूप का दीदार कराने के लिए ....... तुम गज्जब हो यार कमाल हो बेमिसाल हो ...... दीदी हंसते हुए बोली अब बस भी करो सारी तारीफ आज ही कर दोगे तो अगली बार क्या करोगे ....... प्रतीक बोले अगली बार इस से ज्यादा तारीफ करूंगा और हंस कर बोले जान तुम्हे देखने के बाद मुझसे ज्यादा कोई और परेशान है ...... दीदी बोली कौन ...... फिर दीदी बोली प्रतीक मुझे 5 मिनट का टाइम दो मैं सब सेट कर लूं फिर कॉल करती हूं ...... प्रतीक उतावली से बोले जानू जल्दी करो न अब एक पल भी इंतजार नही होता दीदी हंसते हुए बोली बस थोड़ा सा और मेरी जान ........ और उन्होंने फोन काट दिया .......

दीदी ने जल्दी जल्दी से अपनी बची हुई बियर खत्म की और मैंने भी कैन खाली कर के बेड के नीचे फेंक दी और फिर बैग से earbuds निकाल कर उन्हें दीदी के फोन से कनेक्ट किया और एक दीदी को दे कर कान में लगाने के बोला दूसरा मैंने लगा लिया ........


इतना सब कर के मैं कमरे के बाहर गया ऊपर एक कमरा स्टोर रूम की तरह इस्तेमाल होता था और यहाँ घर भर का फालतू समान पड़ा होता था यहां एक पुरानी रस्सी पड़ी हुई थी कपड़े सुखाने वाली जिसे मैंने अभी कुछ दिनों पहले ही बदला था .......


मैंने वो पुरानी रस्सी उठाई और कमरे में आ गया ....... मेरे हाथ मे रस्सी देख के दीदी गौर से मुझे देखने लगी और बोली ये रस्सी किसलिये ...... मैंने कहा तुम्हे बांधने के लिए ...... दीदी बोली पर बाँधोगे क्यों मुझे .....?


मैंने दीदी के होंठो को चूमते हुए कहा कोई सवाल नही मैं जो कर रहा हूँ करने दो बस मज़े लो और प्रतीक से बातें करो ....... दीदी की आंखे 2 बियर पीने के बाद नशे से सुर्ख हो रही थीं उन्होंने भी ज्यादा दिमाग ना लगाते हुए कहा ok .......


दीदी सिर्फ उस रेड कलर की छोटी सी सेक्सी ब्रा पैंटी में बेड पर लेटी हुई थीं मैंने कैंची से रस्सी चार टुकड़े किये और फिर उनके दाएं हाथ को बेड के पाए से बांध दिया और फिर दूसरे हाथ को दूसरी ओर के पाए पर बांध दिया दीदी बेड के एकदम बीच मे लेटी हुई थीं .......

फिर मैंने बारी बारी से उनके दोनो पैर भी बेड के नीचे वाले पाए के साथ बांध दिए दीदी के पैर एकदम फैले हुए थे एक दूसरे से विपरीत .......

और तभी प्रतीक का काल आने लगा मैंने फोन उठा कर कॉल रिसीव की और फोन तकिए के नीचे रख दिया .......


प्रतीक- कितनी देर लगाती हो जान जानती हो ना मैं और सब्र नही कर सकता ......


दीदी- हसंते हुए ओहहह सॉरी जानू बस जरा दरवाजा बंद कर के कपड़े उतार रही थी ...... उसी में टाइम में लग गया ......

प्रतीक- उफ़्फ़फ़ मेरी जान नंगी हो गयी क्या ......


दीदी- हां जानू तुमने कपड़े पहने हुए हैं क्या .......

प्रतीक- ज्यादा नही सिर्फ अंडरवियर पहन रखा है .......

दीदी- उसे भी उतार दो न ...... जान .....

प्रतीक- मैंने सोचा उसे तुम उतार देती तो ......

दीदी- आहह जान अभी तो तुम्हे ही उतारना पड़ेगा ...... लेकिन जब मैं आ जाऊंगी तो रोज मैं ही उतारूंगी ......


प्रतीक- तुम आ जाओगी ना तो दो चार महीने तो मैं तुम्हे ना कपड़े पहनने दूंगा न खुद पहनूंगा ......

दीदी- हाय्य्य्य तो क्या मुझे हमेशा नंगी रखोगे .......

प्रतीक - और क्या जी भर के देखूंगा तुम्हारा नंगा बदन ....... और बस दिन रात तुम्हारी ........

दीदी- मेरी क्या बोलो ना जान .......


प्रतीक- दिन रात तुम्हारी चुदाई करूंगा जान आआहहहहहह .......


दीदी- उफ़्फ़फ़ जान दिन रात चोदोगे मुझे ......

प्रतीक- हां रानी तुम्हे नंगी देख कर तो सब्र करना मुश्किल ही होगा ......
जान मैंने अपना अंडरवियर भी निकाल दिया है एकदम नंगा हो गया हूँ ...... उफ़्फ़फ़ मेरा लंड एकदम सख्त हो रहा है ......

दीदी- आपने तो अपना लंड भी नही दिखाया मुझे अब तक ........

प्रतीक- तुम्हे कैसा लंड चाहिए निक्की ......

दीदी- बस एकदम सख्त और गरम जिसे चूसने और चुदने में मज़ा आये ...... ऊफफफ कितनी गन्दी बातें करने लगी मैं पता नही आप क्या सोचेंगे मेरे बारे में .......


प्रतीक- मेरी जान मैं कुछ सोच नही रहा बस खुश हूं और एन्जॉय कर रहा हूँ ....... मुझे ऐसी ही सेक्सी और समझदार बीवी चाहिएत थी जो खुल के जिंदगी के मज़े लेना जानती हो ...... वो टिपिकल शर्मीली टाइप बीवी नही चाहिए थी मुझे ......


दीदी- उफ़्फ़फ़ जान पर मैं भी शर्मीली ही हूँ ........


प्रतीक- जान तुम जैसी भी हो मुझे बेहद पसंद हो बाकी तुम्हे बेशर्म बनाना मेरा काम है वो मैं कर ही लूंगा.......

मैं मज़े से उन दोनों का वार्तालाप सुनते हुए बेड पर दीदी के बगल में लेट गया दीदी मेरी आंखों में देखते हुए बोली ........

उफ़्फ़फ़ आप मुझे बेशर्म बनाओगे अपनी बीवी को .......


प्रतीक- हां जान शादी तक मुझे तुम्हे एकदम बेशर्म और सेक्सी बना देना है ताकि सुहागरात को तुम पूरी तरह से चुदाई का मज़ा ले सको ......., मेरे कई दोस्तों ने बताया की शादी के बाद 10-15 दिन वो चुदाई कर ही नही पाए क्योंकि उनकी बीवी बहोत शर्मीली थी .......



दीदी- ok जानू बना दो मुझे एकदम बेशर्म .......


प्रतीक- तुम्हे लंड चूसना अच्छा लगता है निकी .......?

दीदी- हां मेरी जान मुझे लंड चूसना पसन्द है और मैं आपका लंड बड़े प्यार से चूसूँगी ......

.प्रतीक- aaahhhh जानू मैं मुठ मार रहा हूँ काश तुम मेरे पास होती तो तुम्हारे मुलायम हाथों से मुठ मरवाने में कितना मज़ा आता .......

दीदी- हंसते हुए बोली ....... मैं होती तो भी मुठ मरवाते क्या जान ......

प्रतीक को अपनी बेवकूफी भरी बात का अहसास हुआ तो वो बोले ....... मेरा मतलब है कि तुमसे मुठ मरवाता फिर अपना लंड तुम्हारे मुह में दे कर चुसवाता और फिर तुम्हे अपने लंड पर बिठा कर जी भर के चोदता ....... जब तक तुम अपनी रसीली बुर का पानी मेरे लंड पर ना टपका देती .......

.दीदी- aaahhhh जान तुम्हारी बातों से ही मेरी बुर पानी टपका रही है पता नही जब तुम अपना लंड डाल कर मुझे चोदोगे तो क्या होगा ........


प्रतीक- मज़ा आएगा मेरी जान बहोत मज़ा आएगा ...... जितना मज़ा अभी तुम्हे उंगली करने में आता है उस से भी हजार गुना ज्यादा मज़ा आएगा ........

दीदी- उफ़्फ़फ़ प्रतीक........ अब अपना लंड दे भी दो मेरे मुह में ...... मुझे चूसना है तुम्हारा मस्त लंड......

प्रतीक- पता है निक्की जब मैंने पहली बार तुम्हे सामने से देखा तो मेरे मन मे क्या ख्याल आया ......


दीदी- मुझे कैसे पता होगा ....... बताओ ना .......


प्रतीक- मैंने तुम्हे देखा तो मुझे सबसे ज्यादा तुम्हारे सुर्ख रसीले होंठ अच्छे लगे और मैं सोचने लगा काश एक बार इन्हें चूस लूं जी भर के फिर मर भी जाऊं तो कोई बात नही ........


दीदी- ऐसी फालतू की बातें मत करिएगा दोबारा , मरें आपके दुश्मन और ये रसीले होंठ अब आपको रोज जी भर के चूसने को मिलेंगे ...... और ये रसीले होंठ आपका रसीला लंड भी चूसेंगे .......


प्रतीक- ऊफफ जान और फिर तुम्हारे होंठ देखने के बाद मुझे बस ये ख्याल आया कि जिसके होंठ इतने रसीले हैं उसकी बुर कितनी रसीली होगी ...... और उसे चूस चूस कर उस बुर का रस पीने में कितना मज़ा आएगा ........


ये बातें सुन कर मेरा भी लंड बेकाबू होने लगा था ....... और मैंने अपने हाथों पर झुक कर दीदी के चेहरे पर अपनी जीभ फिरानी शुरू कर दी और दीदी के गले से हल्की सिसकारियां निकलने लगी ....... और वो बोली ....... aaahhhhhh sssssss प्रतीक मेरी रसीली बुर जी भर के चाटना मेरी जान एक बार मुझे आने दो फिर रोज तुम्हे नंगी हो के अपनी बुर चटवाऊंगी तुम्हारे मुह पर बैठ कर ........

(अब दीदी बियर और सेक्स के नशे में चूर हो कर रंग में आ रही थीं और सिर्फ वो क्यों हम तीनो का वही हाल था)


मेरी जीभ उनके गालों पर नाक पर कान पर कान के निचले हिस्से से होते हुए गर्दन तक घूम रही थी और दीदी की आहें और सांसे भारी होती जा रही थीं .........

प्रतीक- ओहह जान सिर्फ बुर नही मुझे तो एक एक अंग चाटना है तुम्हारा तुम्हारी आर्मपिट की स्मेल लेनी है मुझे ...... उफ़्फ़फ़ कैसी खुशबू होगी तुम्हारे बदन की .......


दीदी- हां जान मेरा एक एक अंग चाटना चूसना ...... मेरी चुत के साथ मेरी गांड़ भी चाटना जानू वो भी पसन्द आयेगी तुम्हे ........

मैं दीदी की गर्दन से चाटते हुए उनके होंठो तक आया और फिर होंठो को 3-4 सेकेंड के लिए मुह में दबा कर चूसा और दीदी ने एकदम से जीभ निकाल कर मेरी जीभ को चाट लिया ......., दीदी हद से ज्यादा गर्म हो चुकी थीं ........ और मैं दीदी की लंबी सुतवां नाक को चाटने लगा और फिर उनकी नाक को मुह में भर कर चूसने लगा ........ दीदी के मुह और नाक से भाप सी निकल रही थी ........

प्रतीक- आहह मेरी रानी निक्की मैं तो तुम्हारी गांड़ के छेद में जीभ डाल डाल कर अंदर तक चाटूँगा जान ...... निक्की मेरा एक कहना मानोगी प्लीज ........


दीदी- iiisshhhhh ....... uufffff हां बोलो ना जानू तुम्हारी हर बात मानूँगी मैं ........ तुम जो कहो सब मंजूर है मुझे .......


और मैंने इसी के साथ दीदी को नाक चूसना छोड़ कर अपनी जीभ उनकी नाक के छेद में डाल दी और चाटने लगा ..... दीदी मेरी इस हरकत से बावली हो गईं और तेजी से सिसियाने लगी ...........


प्रतीक- जानू आज से ले कर हमारी शादी तक तुम अपनी चूत और आर्मपिट के बाल नही हटाओगी मुझे घनी झांटो वाली चूत बहोत पसन्द है रानी ......., झांट वाली चूत देख कर ही मेरे मुह में पानी आ जाता है ......... बस शादी के वक़्त पार्लर जाना तो सेट करवा लेना अपनी झांटे .........


दीदी- उफ़्फ़फ़ मेरी जान जैसा तुम चाहो मैं आज के बाद कभी अपने बाल नही साफ करूंगी और रोज अपने पति को अपनी झांटो वाली रसीली चूत चटा दिया करूंगी ......... और कोई इच्छा हो तो बताओ जानू .........


मैंने बारी बारी से दीदी के नाक के दोनो छेद चाटे अंदर तक जीभ डाल के और फिर नीचे सरक कर दीदी के नंगे पेट को चूमने लगा ....... मेरी गर्म सांसे अपने पेट पर महसूस कर के दीदी रेत पर पड़ी मछली जैसे तड़पने लगी और अपने चूतड़ उठाने लगी .......

प्रतीक- aaahhhh निकी फिलहाल तो यही एक इच्छा थी बाकी एक बार मिलो तो सही सारी इच्छाएं पूरी करूंगा एक एक कर के ....... तुम्हारी कोई इच्छा हो तो बताओ जानू ........,


दीदी- नशे और मस्ती में सिसियाते हुए बड़बड़ाई आहह जान ......, मुझे तो अपने निप्पल चुसवाते हुए अपनी बुर में उंगली करना बड़ा अच्छा लगता है पूरे बदन में करंट सा दौड़ता है और बुर पानी बहा देती है मेरी ........


प्रतीक- ओहहह जान मैं तो तुम्हारे निप्पल काट काट कर चुसूंगा और चूसते अपना लंड तुम्हारी बुर में धक्के मार मार के पेलूँगा जानू जब तक तुम झड़ नही जाती........



मैं दीदी के पेट को जीभ निकाल कर चाटने लगा था और दीदी के बदन का एक एक रोयां खड़ा हो गया था और फिर मैं दीदी की नाभि में जीभ डाल कर चूसने लगा ......, दीदी की नाभि चूसते हुए मैंने एक हाथ पैंटी के दो इंच कपड़े में ढकी हुई उनकी चूत पर रखा और दीदी की गरम दहकती हुई बुर को मुट्ठी में भर कर जोर से मसल दिया ....... और दीदी के मुह से तेज आहह निकली ......... और वो बोली उफ़्फ़फ़ ऐसे ही मसलो ......... और जोर से पी लो मेरी नंगी चुंचिया राजा चोद दो ना अब ...... aaaahhhh


प्रतीक- ओहहह जान चूस रहा हूँ तुम्हारे निप्पल मुह में ले कर दांतों से काट रहा हूँ ......... और अपना गरम लंड तुम्हारी नंगी गीली बुर में रगड़ रहा हूँ ......... उफ़्फ़फ़ निक्की कितनी चिकनी बुर है तुम्हारी .......


दीदी- हां प्रतीक ऐसे ही चुसो काटो खा जाओ मेरे चूचे और पेल दो अपना मोटा लंड मेरी बुर में चोद लो अपनी होने वाली बीवी को शादी के पहले ही सुहागरात मना लो राजा ....... aaahhhh कितना मज़ा आ रहा है आज उंगली करने में ही .......


मैंने दीदी की पैंटी की रेशमी डोरी पकड़ी और खींच दी एक ओर की गांठ खुल गयी और मैंने दीदी के नरम पेट पर हाथ फिराते हुए अपना हाथ उनकी ढीली हो चुकी पैंटी में घुसा कर उनकी बुर को सहलाया बुर के होंठ बुरी तरह से गीले थे उन पर चिकना रस लगा हुआ था मेरी उँगलियां भीग गयी और मैंने एकदम से अपनी मोटी उंगली दीदी की बुर में पेल दी ....... दीदी सिसक उठी ........ और अपना निचला होंठ दांत से काटते हुए अपनी गांड़ हवा में उठाने लगीं ...........

मैं धीरे धीरे अपनी उंगली उनकी बुर में अंदर बाहर करने लगा और फिर मैंने वो उंगली दीदी की बुर से निकाल कर उन्हें दिखाते हुए अपने मुह में डाल कर चूस ली ऊऊम्म्म्म्म क्या स्वाद था दीदी की बुर का ........ मुझसे रहा नही गया और मैंने दीदी की पैंटी की दूसरी गांठ तेजी से खोल कर उसे एक झटके
से उनके बदन से अलग कर दिया और दीदी की टांगो के बीच लेटते हुए दोनो हाथो से उनकी बुर फैला दी और अपने होंठ बुर के अंदरूनी हिस्से पर रख कर चूमते हुए बुर को मुह में दबोच कर चूसना शुरू कर दिया ........, दीदी हाय हाय करने लगी ...... बेड पर बंधी हुई तड़पने लगी अपने बदन को झटके देने लगी ........... और अपनी कमर को तेजी से उछालने लगी ........


प्रतीक- ओहहह जान अब तो लग रहा है बस अभी उड़ कर आ जाऊं तुम्हारे पास और पेल दूँ अपना लंड तुम्हारी बुर में और बस दनादन धक्के मार मार कर चोद दूँ तुम्हे और झड़ जाऊं तुम्हारी बुर की गहराइयों में aaahhhhh रानी ये लो मैं गया ......, ऊफफफ चूस लो मेरे लंड का रस जान पी लो मेरा वीर्य ........


दीदी- हाय्य्य्य राजा झड़ जाओ...... निकाल दो अपने लंड का गरम रस मेरे मुह में ........पिला दो जानू बहोत प्यासी हूँ मैं ....... aaahhhh ऊऊम्म्ममम्म ........


प्रतीक- हांफते हुए बोले बहोत सेक्सी हो जान मैं पहली बार इतनी जल्दी झड़ा हूँ मुठ मारते हुए वरना आधे घंटे से पहले कभी नही होता मेरा .......


दीदी- कोई नही जान पर बहोत मज़ा आया सच मे आज ...... तुम झड़ गए हो तो एक pic दिखाओ ना अपने लंड की मुझे देखना है कितना पानी निकाला है तुमने ......


प्रतीक- जान मैं वीडियो कॉल कर के दिखाता हूँ ......

दीदी- नही ना वीडियो कॉल नही मुझे शर्म आएगी अभी pic दिखा दो वीडियो कॉल अगली बार ......


प्रतीक- ok जान और फिर काल कट गई और कटते ही मैंने अपनी जीभ लंबी सी निकाली और दीदी की बुर की गहराई तक उतार कर घुमा घुमा कर दीदी की बुर अंदर तक चाटने लगा ...... दीदी बोली विकी मेरे हाथ खोल दी प्लीज मैं मर जाऊंगी आज aaahhhhh इतना मज़ा आ रहा है ..........


मैंने दोनो हाथ ऊपर उठा कर दीदी के चूचो को पकड़ लिया और ब्रा के मुलायम कपड़े के ऊपर से सहलाने लगा और कहा ...... दीदी बस मज़े लो मेरी जान मरने तो मैं आपको दूंगा नही बस आपकी चूत का रस निकाल दूंगा.....
.

तभी दीदी के फोन पर मैसेज टोन बजी मैंने देखा तो प्रतीक ने अपने लंड की 4-5 pic भेजी थी ...... अलग अलग एंगल से मैंने pic फुल स्क्रीन कर के दीदी को दिखाई .......


प्रतीक का 8 इंच का मस्त मोटा लंड गुलाबी मोटा सुपाड़ा और फूले हुए
आंड़ देख कर दीदी बोली उफ़्फ़फ़ कितना मस्त लंड है बड़े मजे देगा मैंने pic को स्क्रोल किया तो अगली pic आ गयी ये सिर्फ सुपाड़े का क्लोजअप था दीदी उसे देख कर होंठ चाटती हुई बोली aahahh चूसने में मज़ा आएगा इसे .......


अगली pic में लंड के साथ प्रतीक के पेट पर पड़ी हुई वीर्य की मोटी मोटी लकीरें दिख रही थीं ........ कम से कम 10 चम्मच गाढ़ा मलाई जैसा वीर्य उसके पेट पर बिखरा पड़ा दीदी बोली उफ़्फ़फ़ इतने में तो मेरा पेट भर जाएगा .........

तभी फिर से प्रतीक की कॉल आ गयी मैंने कॉल रिसीव की .......


प्रतीक- देखा जान कैसा लगा .......


दीदी- हाय्य्य्य कितना मस्त लंड है आपका मेरे मुह में तो पानी आ गया ....... और कितना गाढ़ा है आपका वीर्य मैं तो रोज चूस चूस के पियूंगी आपके लंड का रस ..........


प्रतीक चलो जान तुम भी जल्दी से कर लो अब ....... दीदी ओहहह जानू मेरा तो कब का हो गया तुमसे बात करते हुए कितना मज़ा आया आज सच मे ......

प्रतीक- सच मे तुम्हारा हुआ ना ......


दीदी - हां जानू झूठ क्यों बोलूंगी......

प्रतीक- ok जान लव यू सो मच ......


दीदी- प्रतीक एक बात पुछू ......?

प्रतीक- हां पूछो ना ......


दीदी- मुझसे मिलने के पहले भी तुम मुठ मारते थे ......?

प्रतीक- हां ..... मारता था मैं तो 17 साल की उम्र से मुठ मार रहा हूँ .......


दीदी- अच्छा जी 17 से ही शुरू हो गए थे .......


प्रतीक- हां जान मेरे दोस्त ने मुझे पोर्न दिखाई अपने घर पर और उसी दिन मैंने पहली बार मुठ मारा .......


मैं अब चुपचाप लेट कर लंड सहलाते हुए दीदी का वार्तालाप सुन रहा था.........

दीदी- ह्म्म्म अच्छा ये बताओ तुमने पहली बार किस के बारे में सोच कर मुठ मारी थी........


प्रतीक ने कोई जवाब नही दिया......


दीदी- बोलो न जान बताओ ना किस लड़की के बारे में सोच कर मुठ मारी थी तुमने .......?


प्रतीक- जान प्लीज ये सवाल पास कर देते हैं झूठ मैं बोलना नही चाहता और सच मैं बोल नही पाऊंगा .......


दीदी- अरे ऐसा कौन है की तुम उसका नाम नही ले पा रहे और झूठ बोलने को तो मैं कह भी नही रही ......., बता दो ना मैं फिर मैं भी बताऊंगी ........ या पहले मैं ही बताती हूँ ........ मुझे ना अनिल कपूर बहोत अच्छा लगता था बचपन से ही मैं उसकी हर मूवी कई कई बार देखती थी फिर जब मैं 16 की थी तब उसकी बेटा मूवी देखी उसमे वो गाना है ना धक धक करने लगा उसमे उसकी परफॉर्मेंस देख कर उस रात मैंने पहली बार उसके बारे में सोच कर अपनी चूत रगड़ रगड़ कर लाइफ का पहला ऑर्गेज्म फील किया था ....... उसके बाद कई साल तक मैं उसी के बारे में सोचती रही ........ और उंगली करती रही.........

(दीदी की बात सच थी क्योंकि अनिल कपूर उनका फेवरेट हीरो था)

अब तो बता दो जानू अगर कोई प्रॉब्लम ना हो तो ........


प्रतीक- मेरी जान इस के अलावा कोई भी सवाल पूछ लो ना मैं बता दूंगा ......


दीदी- नही और तो कोई सवाल नही है ......, अच्छा चलो फिर सोते हैं काफी देर हो गयी बात करते हुए........


प्रतीक- अरे गुस्सा मत हो जान ....... अच्छा मैं बता दूंगा किसी दिन पर आज नही प्लीज .......

दीदी- its ok मैं गुस्सा नही हूँ यार ......, जब मन हो बता देना और परेशान ना हो कोई भी हो मैं गुस्सा नही करूंगी बस मुझे जानने की उत्सुकता है कि वो कौन लड़की है जिसने पहली बार मेरे प्रतीक का लंड खड़ा किया था ........


प्रतीक- ok जान बता दूंगा किसी दिन ......, ठीक है चलो अब सोया जाए ........, लेकिन सच मे आज का दिन यादगार रहा मेरी लाइफ का फोन सेक्स पहले भी कई बार किया है मैंने पर वो सब शर्मीली लड़कियां है बार बार कहने के बाद भी खुल कर नही बोलती ........ आज का एक्सपीरियंस बेस्ट है मेरी लाइफ का ......., लव यू निक्की ..... बहोत प्यार आ रहा है तुम पर .......


दीदी- मुझे भी जान लव यू सो मच गुड नाईट मेरे राजा ....... bye .....

और फोन कट गया ........

फोन कटते ही दीदी बोली विकी अब और बर्दाश्त नही हो रहा राजा कैसे भी मेरी बुर का पानी निकालना है मुझे मैंने कहा जो हुक्म मेरी जान और मैंने फिर से पोजिशन ले कर ..... दीदी के दोनो चुचियो को सहलाते हुए जीभ से उनकी बुर का दाना चाटना शुरू कर दिया दाने पर जीभ का स्पर्श पा कर दीदी बोली रगड़ कर चाटो ना जानू एकदम से चबा कर खा जाओ इस निगोड़ी मेरी बुर को aaahhhhh और मैं पूरी जीभ को दीदी की बुर पर रगड़ रगड़ कर उनकी बुर चाटने लगा ........ बुर चाटते हुए मैंने ब्रा की भी डोरी खींच ली और दीदी के चूचे नंगे कर के उनके तन कर खड़े हुए निप्पल्स को चुटकी में पकड़ कर मींजते हुए अपनी जीभ लंड जैसे कड़ी कर के बुर में घुसा दी और गोल गोल घुमा कर चाटने लगा दीदी बोली आहहहहहहससससससईईईईईई ऐसे ही चाटो राजा बस झड़ जाएगी मेरी बुर और अपनी गांड़ उठा उठा कर अपनी बुर मेरे मुह में ठेलते हुए चटवाने लगी .........



और मैंने जीभ को बुर में घुमाते हुए उनके पेशाब वाले छेद को जीभ से कुरेदना शुरू कर दिया अगले ही पल वो और जोर से छटपटाने लगी अपना सर पटकते हुए सिसक उठी और बोली हाय्य्य्य विकास मेरे भाई कितने मज़े दे रहा है तू मेरी चूत का अब चोद दे ना अपनी दीदी की बुर ........

मैंने एकदम से दाँत गड़ा कर काट लिया दीदी की बुर पर और उनके निप्पल तेजी से खींचते हुए उमेठ दिए और दीदी की बुर से फलफला कर मीठा रस बहने लगा टपकने लगा और मैं उसे चाट चाट के चूस चूस के पीता रहा ........


एक एक बूंद चूसने के बाद मैंने जीभ बुर से निकाली और दीदी की बुर से जीभ फिराते हुए उनकी गांड़ के कसे हुसे नन्हे से छेद को चूमा और चाटने लगा दीदी बोली अब बस करो और बर्दाश्त नही होगा प्लीज उनकी सांसे अभी भी तेज थीं ........

मैं उठ बैठा उनकी टांगों के बीच दीदी मेरी ओर देखते हुए मुस्कुरा कर बोली मेरे लिये तो फैसला करना मुश्किल है कि मेरा पति ज्यादा सेक्सी है या मेरा भाई .......


लेकिन इतना तय है मैं मायके में रहूं या ससुराल में मेरी बुर कभी प्यासी नही रहेगी ........ अब या तो मेरे हाथ खोल दे जल्दी से या अपना लंड मेरे मुह में दे दे मुझे भी लौड़े का रस पीना है अब ..........


मैं दीदी के पास उनके सर के बगल में घुटनो पर बैठ गया और अपना खड़ा लंड दीदी के चेहरे पर रगड़ने लगा उनके गालों पर माथे पर होंठो पर और फिर मैंने लंड की स्किन पीछे सरका कर सुपाड़ा खोला और गरम सुपाड़ा दीदी की नाक पर रगड़ने लगा .........


और दीदी मेरी आँखों मे देखते हुए गहरी सांस ले कर जैसे मेरे लंड को सूँघने सी लगी ....... दीदी की इस हरकत से मेरे लंड के सुपाड़े पर चिकने रस की कुछ बूंदे छलछला गयीं ....... नाक पर उसकी चिकनाहट महसूस कर के दीदी ने सर ऊपर उठाते हुए सुपाड़े पर अपनी रसीली जीभ फिरा दी और उस रस को चाट कर चटकारा लिया ........ और फिर मैंने अपना सुपाड़ा उनके होंठो पर रगड़ना शुरू कर दिया उनकी लिपस्टिक का रंग मेरे गुलाबी सुपाड़े को और सुर्ख करने लगा ..........


दीदी ने एकदम से मुह खोल दिया और मैंने देर ना करते हुए अपना सुपाड़ा उनके होंठो के बीच सरकाया और दीदी उसे रसगुल्ले जैसे चूसने लगी ....... ..

5 मिनट तक लंड चूसने के बाद दीदी बोली विकी मेरी जान आज मुझे कुछ भी नही करने दोगे क्या .... बहुत हुआ अब खोल भी दो ना ...... मुझे अपने मन की भी करनी है अब ....... और मैंने दीदी को हाथो की गांठ खोल दी हाथ खुलते ही दीदी उठ बैठी और अपने पैर खोलने लगी ........

एकदम आज़ाद हो कर उन्होंने मुझे धक्का दे कर बेड पर लिटा दिया और मुझ पर झुकते हुए किसी भूखी शेरनी की तरह मेरे होंठो को चूसते हुए मेरे लंड को मुठ मारने लगी ...... उनकी जीभ अब मेरे मुह के अंदर घूम रही थी और उनका मीठा मीठा शहद जैसा थूक मेरे मुह में घुल रहा था जिसे मैं चूस रहा था निगल रहा था .........

और फिर दीदी की जीभ मेरे बदन अपर घूमती हुई मेरे सीने पर मेरे निप्पल के चारो ओर घूमने लगी और मैं पागल सा होने लगा बस अब मैं अपने लंड से ढेर सारा गरम वीर्य उगलना चाहता था मेरे आंड़ के अंदर हलचल तेज होने लगी थी ...... .


दीदी ने मेरे छोटे छोटे निप्पल को अपनी नरम जीभ से चाटा और फिर हल्के से दाँत चुभो दिए मैं सिसक उठा ..............


उफ़्फ़फ़ निकिता जान ले लोगी क्या मेरी ... . दीदी ने और नीचे आ कर मेरा लंड हाथ मे पकड़ कर मसलते हुए नीचे लटक रहे आंड़ पर जीभ फिराई और बोली लेना तो तेरा मस्त लंड चाहती हूं अपनी बुर में लेकिन तू देता ही नही ........

मैंने कहा उसके अलावा तो सब दे रहा हूँ जान और कितना मज़ा लेना चाहती हो कोई कमी हो तो बोलो वो भी पूरी कर देता हूँ .. ......


दीदी ने बड़ा सा मुह खोल कर दोनो आंड़ एक साथ मुह में भर लिए और चूसने लगी साथ ही वो लंड पर तेजी से हाथ भी चला रही थी ....... मुझे एक पल को लगा नेहा जैसी पेशेवर रण्डी भी इतना मस्त लंड ना चूस पाए शायद ......


दीदी ने कुछ सेकेंड मुझे हवा में उड़ाने के बाद जमीन पर लैंड कराते हुए मुह से आंड़ निकाले और बोली कोई कमी नही है जानू इतना सुख तो शायद चुदाई में भी ना मिले जितना तुम देते हो मुझे ....... और फिर से सुपाड़े को चाटने लगी मुझसे रहा नही गया और मैंने एक हाथ दीदी के हाथ के ऊपर से अपने लंड पर रखा और पूरी तेजी से उसे मुठियाने लगा .........


दीदी भी मेरा साथ देते हुए लंड को मुठ मारते हुए मेरे सुपाड़े के छेद को जीभ की नोक से कुरेदते हुए चाटने लगी और एक झटके से मेरे सुपाड़े के छेद से एक एक तेज धार निकली गाढ़े गर्म वीर्य की और दीदी की जीभ को तर करती हुई उनके हलक से जा टकराई .......



दीदी चौंक गयीं लेकिन अगले ही पल सम्हलती हुई सुपाड़े के नीचे जीभ लगा कर आने वाली अगली धार को अपनी जीभ पर ही समेट कर लपर लपर करती हुई जीभ चला कर बहता हुआ वीर्य चाटने लगी कुछ बूंदे उड़ती हुई उनकी नाक और गालों पर चमक रही थी और एक बूंद उनकी नोजरिंग में जा कर फंस गई जो रोशनी में किसी हीरे जैसे चमक रही थी ........


एक के बाद एक आती हुई बौछारों को दीदी तब तक चूसती रही जब तक आखिरी बून्द तक नही टपक गयी ..........., और फिर गहरी सांस लेती हुई दीदी मेरी बगल में लेट गयी दरवाजा बंद ही था तो मैंने भी दीदी को पीछे से बाहों में भर कर अपना एक हाथ उनकी नंगी चूची पर रख कर उसे मुट्ठी में भर लिया और पीछे से अपना झड़ा हुआ लंड जो झड़ कर भी किसी खूंटे जैसा ही सख्त था को दीदी के चूतड़ों की गहरी दरार में फंसा कर लेट गया और जल्दी ही हम नींद के आगोश में डूब गए ........।
वाह क्या मस्त लिखते हो भाई अपनी लिखी सभी कहानियों की लिस्ट भेजना।
Mutth to nahi mari

Bahen chod di maine

Waise I am in real incest
Maine apni bahen chodi
Us se achcha kuch nahi
Bas jabardasti nahi karni chaiye
वाह भाई काश तुम्हारे जैसी बहन हमारी भी होती तो मजा आ जाता।
 

Sukhi Choudhry

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मैंने दीदी के हाथ की पकड़ अपने लंड पर महसूस कर के कहा दीदी पर ये शो तो नाईट में ही चलेगा दीदी और दीदी बोली नाईट में आज पूरी मूवी दिखाउंगी तुम्हे बच्चू बहोत तरसाया है तुमने इतने दिन और सुबह से मेरी चूत में आग लगा रखी है .......


इतना कह कर दीदी मेरी ज़िप खोलने लगी और इस बार मैं उन्हें मना नही कर सका ...... उन्होंने ज़िप तो खोल ली ........ लेकिन खड़े लंड को जीन्स और अंडरवियर की कैद से निकलना काफी मुश्किल होता है वो कोशिश तो कर रही थीं पर लंड को बाहर नही निकाल पा रही थी कई मिनट तक वो मेरे लंड को खींचती हिलाती रही और अंत मे हार सी मान कर बोली ...... विकी बाहर निकालो ना इसे देखो कैसे रूठा हुआ सा अंदर छुपा है .......

उनकी बात सुन कर मैं मुस्कुरा उठा और फिर मैंने किसी तरह से बाहर निकाल दिया और उसके बाहर आते ही दीदी ने उसे हाथ मे पकड़ लिया और कस कस के दबाने लगी और बोली उफ़्फ़फ़ कितना मस्त है एकदम सख्त ...... तभी उनका फोन रिंग हुआ उन्होंने जल्दी से लंड छोड़ कर पर्स से फोन निकाला प्रतीक की कॉल थी उन्होंने बस फोन की रिंग बन्द कर के उसे वापस पर्स में डाल लिया और फिर से लंड सहलाने लगी ........


लंड सहलाते हुए वो मेरे कान में बोली विकी मेरी चूत का कुछ करो ना बहोत गीली हो रही है मैंने कहा आप अपना लहंगा मेरी साइड से उठा कर इधर वाला पैर उपर सीट पर रखो और उन्होंने ऐसा ही किया मैंने धीरे से अपना दायां हाथ अंदर डाला और दीदी की नरम चिकनी नंगी जांघ की नरमी को महसूस करते हुए अपना हाथ पैंटी में कैद उनकी बुर पर रख दिया दीदी एकदम से सिसक कर बोली aaahhh विकी उंगली डाल न अंदर प्लीज और मैंने पैंटी के साइड से उंगली अंदर घुसा दी ......


दीदी की बुर एकदम पनियाई हुई थी पिछले 20 दिन से उन्होंने झांटे नही साफ की थीं तो मेरी उंगलियों को उनकी झांट के मुलायम बालो का स्पर्श महसूस हुआ उनकी झांट के बाल भी बुर के रस से तरबतर थे .......


मैंने उनकी चूत के मुलायम लिप्स पर उंगलियां फिराई और उनके होंठो से एक तेज सिसकी निकल गयी और दीदी ने अपनी गांड़ उठाते हुए मेरी उंगली को चूत में लेने की कोशिश की लेकिन इस कोशिश में मेरी उंगली फिसल कर उनकी बुर के दाने पर रगड़ गयी और वो एकदम से झुंझला कर बोली विकी अंदर डाल दे ना उंगली प्लीज मैं तेरे हाथ जोड़ती हूँ .........

और मैंने अपनी उंगली को सही दिशा दिखाते हुए दीदी की गीली पनियाई हुई बुर में पेल दिया ...... और गोल गोल घुमाने लगी मेरी इस हरकत से दीदी एकदम तड़प कर अपनी गांड़ हिलाने लगी और मेरे लंड पर उनके हाथ की गति और तेज हो गयी ........

हम दोनो ही पूरी मस्ती में एक दूसरे को भरपूर सुख देने का प्रयास कर रहे थे ...... लेकिन तभी हाल का दरवाजा खुला और एक आदमी हमारी ओर ही आने लगा मैंने जल्दी से दीदी की बुर से उंगली बाहर निकाल कर अपना लंड किसी तरह जीन्स में ठूंसा ..... तब तक वो आदमी पास आ गया ये तो वही गॉर्ड था उसने मेरे पास आ कर पूछा सर कुछ भिजवाऊँ पानी या कोल्ड ड्रिंक ....... मैंने मन में उसे 100 गालियां देते हुए कहा नही कुछ नही यार हमे मूवी देखने दो डिस्टर्ब मत करो .......

वो वापस चला गया और दीदी के चेहरे पर इस समय उत्तेजना खीझ और गुस्से के भाव थे वो बोली साली किस्मत ही खराब है मेरी ....... मैंने दीदी के गाल को चूम कर कहा ऐसा कुछ नही है बस ये जगह और समय खराब है पब्लिक प्लेस है ये सब घर मे अकेले में करने वाले काम हैं ......



मेरी बात सुन कर दीदी का मूड कुछ नॉर्मल हुआ और मैंने दीदी को दिखाते हुए उनकी बुर के रस में भीगी अपनी उंगली पहले सूंघी और फिर मुह में डाल कर चूसने लगा ये देख कर दीदी मुस्कुरा कर बोली बस रात तक रुक जाओ जानू फिर जितना चाहो पी लेना मेरी बुर का रस जीभ डाल डाल कर चूसना मैं तुम्हारी प्यास बुझा दूंगी राजा ........

फिर थोड़ी ही देर में इंटरवल हुआ और मैं बाहर से दो पॉपकॉर्न और चिप्स ले आया बाकी की मूवी हमने किसी तरह पॉपकॉर्न और चिप्स खाते हुए झेली क्योंकि शुरू की तो देखी ही नही थी ठीक से ........ ढाई घंटे में हमारी बियर भी हल्की हो गयी थी .......

मूवी खत्म होते ही हम बाहर आ गए ...... और पार्किंग की ओर चल दिये ...... पार्किंग में पहुंच कर दीदी बोली एक बात कहूँ विकी ...... मैंने कहा हां बोलो ना ..... वो बोली तुम्हारे साथ पब्लिक प्लेस में कुछ करने में मुझे कुछ खास ही मज़ा आता है थोड़ा डर भी लगता है लेकिन मज़ा भी कुछ खास ही आता है .......

मैंने कार अनलॉक की और दरवाजा खोल कर अंदर बैठ गया दीदी भी मेरी बगल में बैठ गईं ....... हमारी कार एकदम पीछे की ओर थी और इस तरफ कोई नही था एक दो लोग आगे की तरफ थे मैंने कहा निक्की ...... दीदी ने मेरी ओर देखा ....... मैंने कहा जल्दी से एक बार चूत चटवा दो ना और मेरी बात सुन कर दीदी ने मुस्कुराते हुए कार की अगली सीट पर घोड़ी बनते हुए अपनी गांड़ मेरी ओर कर दी और जल्दी से पिछे से अपना लहंगा उठा कर गांड़ नंगी कर के बोली पैंटी तुम ही सरका दो मैंने देखा ये वही नेट वाली पैंटी थी और दीदी के झांट वाली बुर के गुलाबी लिप्स नेट से नजर आ रहे थे ........ .

मैंने कुछ सेकेंड जी भर के इस खूबसूरत नजारे को देखा और फिर उनकी पैंटी में उंगलियां फंसा के उसे नीचे खींच दिया अब दीदी की नंगी बुर मेरी आँखों के सामने थी और मैंने उनकी ओर झुकते हुए अपने होंठ उनकी बुर के गीले गीले होंठो पर रख दीदी ......... aaahhhh विकी लव यू जान चुसो खा जाओ मेरी बुर उफ़्फ़फ़ दीदी अपनी गांड़ पीछे धकेलते हुए अपनी बुर मेरे होंठो पर दबाने लगी और मैंने अपनी जीभ एकदम से उनकी बुर में गहराई तक उतार दी ......... और अपनी जीभ को उनकी बुर में गोल गोल घुमाना शुरू कर दिया और कुछ सेकेंड्स तक ऐसे ही बुर को जीभ से मथने के बाद मैंने जीभ को बाहर खींच कर बुर को अपने मुह में भर कर जोर से चूसा और दीदी की बुर से चम्मच भर चिकन खट्टा से रस मेरे मुह में आ गया उसका स्वाद लाजवाब था मैं उसे निगल गया ........

और दीदी कार स्टार्ट कर दी ...... दीदी ने मुड़ कर लाल लाल नशीली आंखों से मेरी ओर देखा और बोली बस थोड़ा सा और मैं झड़ने वाली हूँ ....... मैं खुद को बेबस सा महसूस कर रहा था ...... दीदी की हालत पर तरस भी आ रहा था और यहां पार्किंग में इस से ज्यादा कुछ करना मुझे सही भी नही लग रहा था .......

तभी मेरी मुश्किल आसान हो गयी और दो लड़के पीछे की ओर आते दिखे मैंने दीदी को उन लड़कों की ओर इशारा करते हुए कहा बाकी रात में दीदी ने उन्हें देखा तो जल्दी से सीट पर बैठते हुए अपना लहंगा सही कर लिया ....... और भुनभुनाते हुए बोली हर बार मेरे मूड की माँ चुद जाती है ........

दीदी के मुह से गाली सुन कर मैं थोड़ा हैरान हुआ पर मैंने गाड़ी गियर में डाली और घर की ओर निकल पड़ा ....... रास्ते मे दीदी ने फोन निकाल कर प्रतीक को कॉल की .......

दीदी- हेलो जानू कैसे हो आप .......

आज उन्होंने स्पीकर ऑन नही किया था तो मैं उधर से प्रतीक की बात नही सुन पॉय रहा था .......

दीदी-मैं भी एकदम ठीक हूँ जान बस तुम्हारी याद आती है बहोत मिस करती हूं तुम्हें ......

.......................................................


दीदी- हां मैं मार्केट आयी थी विकास के साथ कुछ कपड़े लेने थे फोन घर पर ही भूल गयी थी ....... आ कर तुम्हारी कॉल देखी तो फौरन कॉल की ना ........

.........................................................

दीदी- अभी कहाँ जान अभी तो कमरों की पूरी पेंटिंग बाकी है अभी शायद एक हफ्ता और लगे .......

.........................................................

दीदी- जान मैं भी तो तड़प रही हूं उस दिन से दोबारा उसी मज़े के लिए लेकिन मजबूरी है मम्मी के साथ सोती हूँ कैसे करूँ सॉरी जान ........

.........................................................

दीदी- ओहहह बाबू बस एक हफ्ते और इंतजार कर लो फिर तुम्हारी हर बात मानूँगी ना ....... ok मैं pic सेंड के दूंगी अपनी देख कर मुठ मार लेना आप ....... लव यू जान ......

दीदी ने फोन काट कर पर्स में डाला और मेरी ओर देख कर मुस्कुराते हुए आंख मार कर बोली अब एक हफ्ते हमे कोई नही डिस्टर्ब करेगा ....... दीदी की ये चालाकी देख कर मैं भी मुस्कुरा दिया ........ हम घर से थोड़ी ही दूर पर थे तो दीदी बोली विकी रात के लिए कुछ इंतजाम कर लो मैंने कहा कैसा इंतजाम वो बोली पीने का आज मेरा फुल मस्ती करने का मूड है.......

मैंने कहा जो हुक्म सरकार और कार बियर शॉप के पास रोक कर जा कर 4 बियर और सिगरेट का पैकेट ले आया........ और फिर हम घर आ गए ....... मैंने कहा रात तक तो ये गर्म हो जाएगी दीदी बोली मैं इसे चुपचाप फ्रीजर में डाल दूंगी रात में निकाल लाऊंगी ......... और फिर हम घर पहुंच गए ...........

मैं थोड़ी देर नीचे बैठ कर पापा से बातें करता रहा ........ फिर 7 बजे के आसपास मैं ऊपर आ गया थोड़ी ही देर में दीदी भी आ गयीं उन्होंने दो कैन अपने हाथों में ली हुई थी और जल्दी से एक मुझे पकड़ा कर बोली एक एक अभी ले लेते हैं दूसरी खाने के बाद आज दीदी कुछ उतावली सी दिख रही थीं मैंने कहा मम्मी को महक लग गयी तो .......

वो बोली मैं उनके पास नही जाऊंगी ना दूर से बात करूंगी और अब तो सब काम निपटा कर आ रही हूं बस खाना खाना बाकी है....... मैंने कहा ठीक है फिर हम पीने लगे और पीने के बाद दीदी कुछ मूड में आ गईं और ........


उन्होंने बड़ी स्टाइल से पूछा सिगरेट है मैंने हां में सर हिला दिया और जेब से पैकेट निकाल कर एक सिगरेट उन्हें दे दी ....... उन्होंने डेस्क से माचिस निकाल कर उसे सुलगाया और कश लगा कर मुझे पकड़ा दी ....... और एकदम से मेरे लोअर को खींच कर लंड को बाहर निकाल कर झुकी और उसे मुह में ले कर चूसने लगी .......,


मेरा लंड एकदम शांत सिकुड़ा सा पड़ा था अचानक हुए इस हमले से सहम सा गया और फिर सर उठाने लगा ......... मैं भी बस आज मूड में ही था तो दीदी के कुर्ते में हाथ घुसा कर ब्रा में कैद उनकी चुंचिया मसलने लगा ........ एक बार फिर से हम दोनों गरम होने लगे ........ मैं दीदी के खड़े हो चुके निप्पल को सहलाने लगा और दीदी के मुह में मेरा लंड जो अपने पूरे आकार में आ चुका था ........

झटके लेने लगा दीदी अपना सर हिलाते हुए तेजी से लंड चूस रही थीं और मैं भी उनके चूचे मसलते हुए लंड चुसवाने का मज़ा ले रहा था मेरी हालत खराब थी मैं मस्ती में चूर हवा में उड़ रहा था ...... और वाकई आज हमारी किस्मत के लौड़े लगे थे अचानक किसी के ऊपर आने की आहट आयी सीढ़ियों से मैंने दीदी को जल्दी से परे धकेल कर इशारा किया और वो जल्दी से ........

बियर के खाली कैन उठा कर बेड के नीचे सरका दी और फिर जल्दी से भाग कर बाथरूम में चली गईं ....... मैं भी फोन निकाल कर बस यूं ही हाथ मे ले कर बैठ गया ........

और तभी मम्मी कमरे में आई और बोली मैंने सोचा मैं भी देख आऊं अब तुम लोगों के कमरे कैसे लग रहे....... मैंने कहा देख लो मम्मी एकदम बदल गया है लुक वो बोली सही में लग ही नही रहा कि वही कमरा है फिर वो बोली निक्की का कमरा भी देख लूं और वो बाहर निकल गयी ........ थोड़ी देर बाद मम्मी और दीदी मेरे कमरे के दरवाजे पर दिखी और मम्मी बोली चल बेटा खाना खा ले फिर आराम कर आ के ........

मैं भी उठ कर नीचे आ गया हम सब ने साथ मे खाना खाया और फिर मैं सबसे पहले उपर आ गया बस दो मिनट बाद ही दीदी भी आ गईं ........ उन्होंने हाथ मे पकड़ी हुई एक कैन मेरी ओर उछली और बोली मैं बस 5 मिनट में आती हूँ विकी तुम तब तक बियर पी कर मूड बनाओ और वो दूसरी कैन खोल कर घूंट भरती हुई बाहर निकल गईं ........

मैं बेड पर अधलेटी अवस्था मे बैठा हुआ बियर पीने लगा आज ये चौथी थी मैंने पहले कभी एक दिन में इतनी नही पी थी ........
और ज्यादा स ज्यादा तीन मिनट बाद दीदी कमरे में दाखिल हुई उनके जिस्म पर बस वही गुलाबी रंग की ब्रा पैंटी पैरों में ब्लैक कलर के हाई हील कमर तक लहराते हुए खुले बाल और होंठो पर सुर्ख लाल लिपस्टिक इस रूप में दीदी इतनी सेक्सी लग रही थीं कि उन्हें देखते ही मैंने बियर का आखिरी घूंट लेते हुए खाली कैन को एक ओर फेंका और लपक कर बेड से नीचे आ गया .......


दीदी ने मुझे उतरते देख कर जल्दी से घूम कर दरवाजा बंद किया उफ़्फ़फ़ उनके घूमते ही मुझे उनके एकदम नंगे चूतड़ों के दर्शन हो गए हांलाकि उन्होंने पैंटी पहनी थी लेकिन उसकी पतली डोरी सिर्फ उनकी कमर पर दिख रही थी चूतड़ों के बीच घुसी हुई पीछे की डोरी नजर नही आ रही थी .........

मैंने उनके पास जा कर उन्हें बाहों में उठा लिया और ले जा कर बेड पर फेंक सा दिया और उनकी कमर पर हाथ रख कर उन्हें पलटा कर पेट के बल लिटा दिया और फिर जल्दी से बेड पर चढ़ कर झुक कर उनके खुले हुए बाल उनकी पीठ से हटाते हुए पीछे से उनकी गर्दन को चूमने लगा ऊऊम्म्म्म्म aaahhhhh दीदी लव यू जान मैंने अपनी जीभ निकाली और दीदी के गर्दन से फिराते हुए उनकी पीठ को चाटने लगा मैं पूरी जीभ को ऊपर से नीचे दाएं से बाएं चाटे जा रहा था........ दीदी सिसकने लगी आहें भरने लगी ओहहह विकी मेरी जान मेरे बदन में आग लग रही है .........



पीठ चाटते हुए मैंने ना जाने क्या सोच कर दीदी की बाहें पकड़ कर ऊपर उठा दी उनके सर से ऊपर दीदी की गोरी गोरी बगलों में काले चमकदार बाल दिख रहे थे और मैने अपना मुह उनकी बगल में घुसा दीदी के बदन से पसीने की हल्की महक आ रही थी और उस मादक गंध को सूंघ कर मेरा लंड फटने को हुआ और मैं अपनी जीभ दीदी की दाईं आर्मपिट पर फिराते हुए उसे चाटने लगा पसीने के नमकीन स्वाद चखते ही मेरा लंड और भी तेज झटके लेने लगा ........


और दीदी बेड पर पड़ी हुई मचलने लगी ........ ओहहह विकी कितना मज़ा दे रहे हो आज तुम ....... और मैंने अपनी जीभ अब दूसरी ओर की आर्मपिट पर चलानी शुरू कर दी मैं दीदी के बगल के बालों को चूस रहा था ........ और फिर कुछ देर जी भर के दीदी की बगलों को चूसने के बाद मैं दीदी की कमर को चाटने लगा दीदी के बदन में कंपकंपी होने लगी और मैंने उनकी कमर के मांस में दांत गड़ा दिए और दीदी चीख उठी aaahhhhsssss uffffff मेरी जान ले लोगे क्या जानू ........ और मैंने जीभ को अब दीदी के नंगे तेज रोशनी में चमक रहे चूतड़ों पे फिराना शुरू कर दिया मैं किसी कुत्ते जैसे दीदी के चूतड़ों को चाट रहा था दोनो को बारी बारी ....... और दीदी सिसिया रही थी आहें भर रही थी ......... और फिर जब दीदी के दोनो चूतड़ मेरे थूक से भीग कर चमकने लगे तो मैंने उनके एक चूतड़ को मुह में भर कर दांत से हल्के हल्के काटना शुरू कर दीदी एकदम से उछल पड़ी और बोली अब बस मेरी चूत की आग बुझा दो ना मेरी जान ........ अब नही रहा जाता मैंने उनकी बात को अनसुना करते हुए उनकी पैंटी की डोरी को उंगली से पकड़ कर खींचा और दोनो हाथो से उनके चूतड़ फैला कर दीदी के गांड़ के छेद को देखने लगा ........ और अगले ही पल मैंने झुकते हुए उनकी गांड़ के छेद पर अपनी नाक रख दी और सूंघने लगा दीदी की गांड़ को ...... उफ़्फ़फ़ मदहोश करने वाली बू थी वो ...... दो तीन बार जी भर के गांड़ सूंघने के बाद मैंने अपना मुह खोल कर दीदी की गांड़ के छेद को पूरा मुह में भर लिया और चूसने लगा आआम्म्म्महहहहहहह........ और दीदी ने अपनी गांड़ हवा में उठाते हुए मेरे मुह पर दबा दी फिर मैं गांड़ को मुह में भरे हुए ही उनकी गांड़ के छेद को जीभ से कुरेद कुरेद कर चाटने लगा........ और दीदी ओहहह विकास मैं गयी आआहहहहहह झड़ गयी रे बह गई मेरी बुर सससम्म्म्ममम्म ......... उनका बदन कांप रहा था आखिर सारा दिन तड़पने के बाद उनकी बुर की गर्मी थोड़ी शांत हुई थी ......... दीदी का बदन धीरे धीरे कांपता हुआ शान्त हो रहा था और सो गहरी सांसें लेती हुई निढाल पड़ी थी .......

पर मेरे बदन में एक आग जल रही थी और मेरा लंड खूंटे जैसा सख्त हो रहा था........।
ओह भाई लण्ड में आग लगा दी तुमने।
 
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