बिस्तर पर लेटते ही में कब नींद के आगोश में चली गयी , मुझे पता ही नहीं चला। आधी रात को किसी समय मुझे लगा कोई मेरे कूल्हे (चूतड )सहला रहा है , कुछ क्षण में ऐसे ही लेटी रही, जब थोड़ा होश सम्भला तो मैंने पाया कि मैं तो अपने बेटे के साथ नंगी सो रही हूं। मेरी एक टांग आसिफ की जांघों पर थी , तथा हाथ उसके सीने पर।
क्यों बेटा नींद नहीं आ रही ? मेंने आसिफ के सीने पर हाथ फेरते हुए पूछा।
ओह सॉरी अम्मी आप की नींद में खलल पड़ा । आसिफ ने तुरंत से अपना हाथ मेरे कूल्हों पर से हटा लिया।
मेंने आसिफ का हाथ पकड़ कर पुनः अपने कूल्हों पर रख दिया। बेटा इन्हें ऐसे ही सहलाता रह मुझे अच्छा लग रहा है , आज बहुत समय के बाद कोई मर्द मेरे कूल्हों को इतने प्यार से सहला रहा है। कह कर मेंने अपना चेहरा उसके चौड़े सीने में गड़ा दिया।
आसिफ फिर से मेरे कूल्हे सहलाने लगा था ।
बेटा तू अभी तक क्यों नहीं सोया ।..... मेंने उसके बालों में हाथ फेरते हुए पूछा ।
बस ऐसे ही अम्मी, नींद नहीं आ रही । आसिफ उदासी से जबाब दिया।
बस ऐसे ही नींद नहीं आ रही..... ये क्या बात हुई, ......क्या परेशानी है बताता क्यों नहीं। मेंने जोर देकर पूछा
अम्मी मेंने कहा ना कुछ नहीं हुआ आप सो जाईए। आसिफ थोड़ा झल्ला कर बोला।
में अपना हाथ उसके सीने से नीचे खिसका कर उसके लंड पर ले गई , जो कि लोहे की मोटी रांड की तरह सख्त तना हुआ था।
क्या ये तुझे सोने नहीं दे रहा । मेंने उसके लंड को सहलाते हुए पूछा।
नहीं रे अम्मी, ये तो रोजना रात को ऐसे ही खड़ा रहता है । मगर आप इसको छोड़ दो नहीं तो बहुत परेशानी हो जाएगी।
कोई परेशानी नहीं होगी । मेंने उसके लंड को सहलाना जारी रखते हुए कहा , ... अगर अब परेशानी होगी भी तो अब तेरी अम्मी तेरे पास है ना ..... में इसकी सब परेशानियां दूर कर दूंगी..... में शरारत पूर्ण स्वर में बोली।
ले आजा मेरे बच्चे , इसको सुला दूंगी तो तुझे भी नींद आ जाएगी। मेंने उसे अपने ऊपर लेने की कोशिश करते हुए कहा ।
ना करो अम्मी रहने दो , बुखार से आपका शरीर कितना तप रहा है ..... और आपको मेरे लंड की चिंता लगी है। .... आसिफ मेरा हाथ अपने लंड पर से हटाते हुए बोला।
अम्मी एक बात बताओ, कि दिन में जो कुछ भी हुआ उससे आपका मन तो आहत नहीं हुआ। आसिफ ने गम्भीर होते हुए पूछा। उसका हाथ अभी भी मेरे कूल्हे सहला रहा था।
अब जो हो चुका है, उस पर क्या बोलूं । मेने बुझे मन से कहा।
अम्मी , मुझे यही बात परेशान कर रही है, कि आज जो कुछ भी हुआ , अच्छा नहीं हुआ। वो साला दौ कौड़ी का इन्सान रमेश मेरे सामने मेरी अम्मी , जो मुझे अपनी जान से भी ज्यादा अजीज है , को मार रहा था , गालियां दे रहा था, हरामजादी, बहनचोदी, रांड , रंडी और ना जाने क्या क्या ।
चल बेटा जो बीत गया उस पर झाड़ू फेर ..... क्यों इतनी टेंशन ले रहा है..... देख चुदाई के वक्त जज़्बात काबू में नहीं रहते इन्सान कुछ भी बोलता है .... में और तू भी गालियां दे रहे थे,.......फिर देख झडने के बाद वो मुझे कितनी इज्जत दे रहा था ....मुझे महान और दैवी ना जाने क्या क्या बता रहा था । मेंने बात खत्म करने कि नियत से कहा।
नहीं अम्मी बात ये है कि इसमें कसूर मेरा ही है , ये प्लान मेंने ही बनाया था। आसिफ का गला भर आया था।... में आपसे बहुत प्यार करता हूं, और किसी भी हालत मे आपको पाना चाहता था , सीधे आप से कहने में झिझक रहा था, इसलिए ऐसा किया।
अगर ये बात है , तब तो तूने गलत किया। पर चल अब इतना गिल्ट फील मत कर , जो होना था वो हो गया , तू मुझे पाना चाहता था सो पा लिया , हमेशा के लिए। अब में रोजाना तेरे बिस्तर की शोभा बढ़ाउंगी , जैसे तेरी मर्जी हो वैसे मुझे चोदना। मेंने प्यार से उसके चेहरे को चूमते हुए कहा।
वो सब ठीक है अम्मी , मगर अब में रमेश को कभी इस घर में घुसने नहीं दूंगा और अगर उसने हमें ब्लैकमेल करने की कोशिश करी तो उसके हाथ पैर तोड़ दूंगा।... आसिफ उत्तेजित स्वर में बोला।
जैसा तू ठीक समझें कर बेटा । मेंने उपरी मन से बोला, जबकि मन ही मन रमेश से ना चुदने के ख्याल से ही में परेशान हो गयी थी । क्योंकि वो रमेश ही था जिसने मुझे जम कर चोदा था , मेरे शरीर के सारे कस बल ठीले कर दिये थे , रमेश ने मेरी जिंदगी की सबसे बढ़िया चुदाई करी थी । वो उसका गाली देना , थप्पड़ मार मार कर मेरी गान्ड लाल कर देना । सब किसी सपने के पूरा होने जैसा था।
इस बात का ख्याल जेहन में आते ही, मेरी चूत फिर बहने लगी थी । मैंने आसिफ के होंठों पर अपने होंठ रख दिए और उसे अपने ऊपर खींचने लगी।
अम्मी मान जाओ आपको इतना तेज बुखार है सारा बदन तप रहा है , और आपको मेरे लंड की परेशानी की पड़ी , आप आराम करें। मुझे अभी अपने आप नींद आ जाएगी।
नहीं , मेरे बुखार की चिंता मत कर , तू तो आजा , मुझे तो चुदाई करवानी है । कह कर में शरमाकर कर में उसके जोर से चिपक गई , और एक एक हाथ नीचे ले जाकर उसका मोटा तना हुआ लंड सहलाने लगी।
उफफफ आसिफ के मुंह से एक सिसकारी निकली .... अम्मी आप तो बहुत चुद्दकक्ड हो , क्या दिन में हुई चुदाई से आपका मन नहीं भरा ।
आहहहहह नहीं, बेटा प्लीज मेरे ऊपर आजा में बहुत चुदासी हो रही हूं। मेंने लरजते हुए स्वर में कहां।
अम्मी सुबह जैसी रगड़ाई हमने आपकी की हर कामुक से कामुक महिला एक हफ्ते के लिए चुदाई से तौबा कर ले।
ये सब मुझे नहीं पता , तू तो मेरे ऊपर आ , ऊफफफफ बहुत परेशानी हो रही है , कह कर मैंने जबरदस्ती अपने ऊपर खींचा और अपनी एक चूंची पकड़ कर उसके मुंह में दे दी।
आसिफ ने मेंरी चूंची को मूंह में दबा लिया और जोर जोर से चूसने लगा। मेरा शरीर एकदम से सिहर उठा ....सीईईईईईई आहहहह बेटा ऐसे ही चूसता रे , मेरे बच्चे उउउउउउउ निचोड़ लें अपनी मां के थन को। औहहहहहह मेरे खुदा आहहह कितना सकून मिल रहा है।
आहहहह। इसमें से निचोड़ू क्या अम्मी इसमें दूध तो सूख चुका है। आसिफ एक हाथ से मेरी कमर और पुष्ट जांघों को सहलाते हुए बोला।
ऊफफफफ इसी लिए तो कह रही हूं बेटा अपनी अम्मी के पेट में बच्चा डाल दें , बना दे अपनी मां के पेट को मटका । ईईईईईईईई फिर तुझे ऊऊऊऊऊ तीन चार साल के लिए दूध मिल जाएगा।
औहहहह मेरी अम्मी में तो चहता हूं कि तू मेरे बच्चे की मां बने , ... आसिफ का हाथ अब मेरे पेडू ( Pelvis area ) को मुठ्ठी में दबा कर मसल रहा था .... मगर लोग मजाक बनाएंगे कि 45 साल की उम्र में आपने बच्चा जना है।....हायययय ... आसिफ सिसकारियां लेता हुआ बोला...
आपके बदन में तो जादू है किसी को भी दिवाना बना दे , कितनी मुलायम चमड़ी है अम्मी आपकी।
ऊऊऊऊऊ औहोओओ.... बेटा लोगों का काम कहना है, कहने दें , वो चिढ़ेंगे भी कि तेरी मां इस उम्र में भी बच्चा पैदा करने का दमखम है । आहहहहहह रे इतनी जोर से मत मसल रे , तकलीफ़ होती है
अच्छा अम्मी ये बता कि अब्बू को क्या जबाब देगी। आसिफ का हाथ मेरे पेडू से (pelvis ) से हट कर , मेरी चूत के नीचे गांड़ और बीच के हिस्से को सहला रहा था ।
सीईईईईईई। वो भी सोच लेंगे , में उसके पास कुछ दिन के लिए हो आऊंगी। आईईईईईईई आसिफ ने मेरी चूत को मुठ्ठी में कस लिया था । तू.......आहहह मारेगा मुझे, ऐसे कोई करता है क्या ।
अम्मी तेरा बदन बहुत मस्त है रे रुका नहीं जाता , तेरे ये मोटे मोटे मम्मे , थोड़ा सा बढ़ा हुआ पेट , ये तेरी फूली फूली चिकनी चूत,ये भरी भरी जांघें, ये मीडियम साइज के चूतड , हरामजादी रंडी , मन करता है कि तेरे को खा ही जाऊं।
आहहहहह खा जा बेटा , ऐसे ही गालियां देते रहे , तेरी मां को रंडी बन कर चुदवाना पसंद है । आईईईईईईई ...ये सारी उंगलियां एक साथ अंदर डाल देगा क्या ....ऊंऊऊऊऊऊ
बहुत अच्छा लग रहा है मेरे राजा। ..... मेंने बिल्कुल सीधे लेट कर अपने अपने घुटने मोड़ लिये थे।
आसिफ मेरी चूत से खेल रहा था ...... मां तेरी चूत तो बहुत पानी छोड़ रही है ।
होओओऐऐ.....बेटा बहुत चुदास लग रही है रे , कूट दे मेरी चूत को .......आईघीघघघघ मेरे दाने को ( भगनास ) तो ऐसे मत मसल रे ,दर्द होता है तेरी मां को ।
बहनचोदी तेरे को तगड़ी चुदाई भी चाहिये और नखरे भी करने है। ......कहते हुए आसिफ ने मेरी चूत पर एक चपत लगा दी।
ऊईईईईईईई अम्मा रीईईई में मरी ......में एक दम से उछल पड़ी, क्या कर रहा है , प्यार से नहीं कर सकता क्या।
अरे वाह ऐसे तेरा तबला बजाने में तो बहुत मज़ा आता है,
, क्या कमर उछालती है । तड तड तड आसिफ ने एक साथ तीन थपकियां मेरी चूत पर मारी ।
में दर्द से उछल पड़ी.....ऊऊऊऊऊऊ मर गई रे ,.... आ कोई तो बचाओ लो..... इस जालिम से । पर हकीकत यह थी कि ऐसी दर्द भरी चुदाई में मुझे मजा आ रहा था , में चाहती थी आसिफ ऐसे ही तकलीफ़ दें दे कर चोदे ।
ले अम्मी तेरे बदन को चाटूंगा में तो ।
तेरे को मेरा बदन इतना अच्छा लगता है। ...... मेंने मुस्कराते हुए कहा।
रांड तेरे को तो ऐसे 90 साल का बुड्ढा भी देख लेना तो तेरी चूत में जबरदस्ती पेल दे।
अच्छा जी , मेंने मुस्करा कर कहा , और लेटे लेटे अपनी बाहें फैला दी ........ आजा फिर सोच क्या रहा है।
आसिफ सपड सपड मेरे बदन को चाटने लगा मेरे कान , गर्दन , बगल , मम्मो से होता हुआ उसने मेरे उभरे हुए पेट में मुंह गड़ा दिया ।
में आंनद में गोते लगा रही थी.....आहहहहह ऊऊऊछछ मेरे राजा ऐसे ही , पेट पर ऐसे मत कर गुदगुदी होती है रे । ईईईईईईईई नाभि में जीभ डाल कर मत चाट बहुत गुदगुदी होती है ....ऊऊऊऊऊऊ....सहन नहीं होती , में मछली की तरह बल खा रही थी।
अम्मी तेरा शरीर इतना कामुक है ना , बहनचोद , कि मेरा मन करता है इसमें वापस घुस जाऊं।
औऔऔऔऔ मेरा भी ऐसा ही मन करता है बेटा , तेरे को अपने अंदर घुसा लूं।
मां जरा उल्टी लेट जा तेरे चूतड चाटूंगा।
हां , ले बेटा हो गयी उल्टी ,इनको मसलना भी , जोर जोर से , चाहें तो थप्पड़ भी मार देना , मुझे अच्छा लगता है रे । आआआआआइ ऐसे ही रगड .... ऐसे ही मसल मेरे बेटे ........ईईईईईईईई थोड़ा धीरे काट रे .....आहहहहहह हां थप्पड़ थोड़ा और जोर से मार रे .......ईईईईईईईई ऐसे ही।....... मुझे मेरे चूतड़ों को प्रताड़ित करवाने में विशेष मजा आ रहा था।
मां तेरे चूतड तो मख्खन है मख्खन , मां थोड़ी सी गांड़ ऊपर उठा ना , हां ऐसे ही ।
आसिफ की जीभ मेरे कूल्हों के बीच की खाई में थिरक रही थी , इससे होने वाला संसेशन मेरे काबू से बाहर हो रहा था और मैं अपने कूल्हे इधर उधर हिला रही थी। .......आहहहहह बेटा रूक जा बहुत गुदगुदी हो रही है बड़ा अजीब सा लग रहा है।....... में अपनी कमर को हिलाते हुए बोली।
ऊऊऊऊ अम्मी तेरी गांड़ का हल्का भूरा छेद कितना प्यारा है रे , एकदम गुलाब का फूल लग रहा है । .... आसिफ अपने दोनों हाथों से मेरी गान्ड खोलते हुए बोला।
अब आसिफ अपनी जीभ की नोक से मेरी गान्ड का छेद कुरेदने लगा था ।
आहहहहहह ऐ छी बेटा ये क्या कर रहा है , ये अच्छा नहीं है , हटा अपनी जीभ वहां से ।
आहहहह अम्मी... क्या बात कर रही है, इतना तो अच्छा है... आसिफ मेरी गान्ड में अपनी ऊंगली डालने की कोशिश करने लगा ।
आईईईईई बेटा ये क्या कर रहा है , ऐसे सूखी उंगली अंदर नहीं जाएगी। ... इस पर कुछ चिकनाई लगा।
आसिफ ने मेरी गान्ड के छेद पर ढेर सारा थूका , और एक झटके में अपनी ऊंगली मेरी गान्ड में घुसा दी और और तेज तेज चलाने लगा। ..... अब तो चली गयी मेरी रांड।
सीईईईईईई आहहहहह ..... बेटा अब डाल दे।
क्या डाल दूं...
अपना डाल दें , मेरी में। आहहह बर्दाश्त नहीं हो रहा।..... में गिड़गिड़ाते हुए बोली
अपना क्या......साफ साफ बोल।
अरे बेटा अपना लंड मेरी चुत में घुसेड़ दे.......आहहह जल्दी कर इससे ज्यादा साफ क्या बोलूं। में झुंझला कर बोली।
आहहह...अभी कहां मेरी गुलबदन, अभी तो तेरी चूत को चूस चूस कर झाड़ना है ...... तेरी चूत को पीट पीट कर तेरा पेशाब निकलवाना है ...... बहनचोद चुद्दकक्ड तेरे को इतनी जल्दी थोड़े ही छोड़ दूंगा.......आहहहह सारी रात तेरे बदन को रगड़ूंगा। आसिफ पूरी ताकत से मेरे कूल्हे मसल रहा था ।
चल रांड सीधी लेट जा जरा चूत दिखा अपनी।
में चुपचाप सीधी हो गई।
देखो रंडी की चूत कैसे आंसू बहा रही है , लंड खाने के लिए , चादर तक गीली कर दी ..... चादर तो अभी और गीली करवाऊंगा ।.....चल मेरी अम्मी जान अपनी टांगें ऊपर कर लें तेरे को जन्नत का मजा देता हूं , ये तेरा नया खसम तेरे को चोद चोद कर हर साल एक बच्चा पैदा करेगा।
आहहहहहह अब आ जा ना क्यों तड़पा रहा है , हायययययय अम्मा री.... अब नहीं रूका जा रहा ....., मेरा भोसड़ा जल रहा है .....जल्दी कर मादरचोद।.... में गुस्से में चिल्लाईं हालात मेरे काबू से बाहर होते जा रहे थे।
में सोच रही थी कि अब आसिफ अपना लंड घुसाएगा,.....मगर उसने अपना मूंह मेरी चूत पर रख दिया और सड़प सड़प मेरी चूत चाटने लगा।
ऊईईईईईईईईई रब्बा... ऐसे ही हां हां हां ऐसे ही चांट बेटा , आहहहहहहहह डाल दें अपनी जीभ उस छेद में जहां से तू निकला .....खोद दे बेटा उसे .....ईईईईईईईई। दाने को मत काट रे .....मर जाऊंगी।...... में तेज तेज कमर उछाल कर अपनी चूत चटवा रही थीं।
अम्मी ऐसा कर तू मेरे मुंह पर पेशाब निकाल दें , सुबह जब से तेरे पेशाब में तेरी चुदाई करी ना , तब से तेरे पेशाब का एक नशा सा छा गया है...... गीली चादर पर तुझे चोदने में बहुत मज़ा आया था
नहीं ये किसी भी हालत में नहीं हो सकता । सारा बिस्तर खराब हो जाएगा .. मेंने थोड़े सख्त स्वर में बोला।
बिस्तर खराब नहीं होगा .... सिर्फ चादर गीली होगी ...... मुझे पता था कि तू रांड रात को मेरे पास चुदवाने जरूर आयेगी .... इसलिए मैंने पहले ही नीचे प्लास्टिक बिछा दी थी।
फिर भी मैं.... तेरे मुंह पर पेशाब तो हरगिज नहीं करूंगी, .....तू कुछ भी कर ले
चल ठीक है, मेरे मुंह पर ना कर .......कह कर आसिफ मेरी टांगों के के बीच बैठ गया........ और एक तेज चपत मेरी चूत पर मारी।
आईईईईईईई रे मर गयी , में दर्द से तड़प उठी मार क्यों रहा है हरामी......हाय मेरी मां .... बहुत दर्द हो रहा है।
तभी मेरी चूत पर तड़ाक तड़ाक दो चपत और पड़ी , ईईईईईईईई में ऐसे चिल्लाईं जैसे कोई मेरी गर्दन रेत रहा हो........ कुत्ते के जने थोड़ा धीरे मार ले।
अच्छा , मेरी प्यारी अम्मी जान....अब ये चपत तेरे तब तक पड़ती रहेगी , जब तक तू अपना सारा पेशाब निकाल नहीं देती ....... आसिफ किसी गुंडे की तरह बोला।
आसिफ ने मेरी चूत पर लगातार थपथपाना शुरू कर दिया था .......आईईईईईईई नहीं ....औऔऔऔऔ मान जा..... दर्द होता है रे ....... हरामजादे तेरे बाप को भी मेरी चूत पर मूतने का शौक था ......और तुझे.... मुझे मुताने का शौक चढ गया ..... में दर्द और गुस्से से चिल्ला रही थी।
थोड़ी देर तो में सहन करती रही पर जब मेरी बरदाश्त से बाहर हो गया तो मैंने पेशाब की धार छोड़ दी....... मेरी पेशाब की धार उसकी थपकियां देते हाथ से टकरा कर किसी फुव्वारे की तरह चारों ओर फैलने लगी.... जिससे मेरा और आसिफ का बदन तथा चादर मेरे पेशाब में भीग गये।
आहहहहह मेरी प्यारी मां..... यही तो मैं कह रहा था.....देख कितना मज़ा आ रहा है...... कितनी मादक गंध है .... तेरे पेशाब की ..... जन्नत का मजा आ गया..... अम्मा तूने तो मुझे ये अजीब शौक लगा दिया.....अब तो ..तू जब भी चुदेगी .... मूतना जरूर पड़ेगा।
हट कैसी गंदी बातें करता है रे तू ......एक तो अपनी अपनी मां को चोद रहा है..... फिर उससे अपने सामने पेशाब भी करवा रहा है।
देख अम्मा चुदाई में कोई मां बेटा नहीं होता....सिर्फ औरत और मर्द होते हैं.......और मैं तो तेरा पक्का आशिक हूं रे ।
अच्छा अब मार तो मत .... पेशाब की थैली खाली हो गयी ....... में कर चुकी.... अब नहीं निकल रहा। आहहहहहहहह रे बेटा..... तूने बहुत दर्द दिया। में दर्द से कराहते हुए बोली।
मुझे मालूम है रंडी कि तू ड्रामा कर रही है , ऐसे पिट पिट कर चुदना तुझे पसंद है । बोल में सच बोल रहा हूं ना। ....... आसिफ ने मेरी तरफ मुस्कुराते हुए पूछा।
बफ्फफ....... चल चूतिया.... मेंने उसे दुत्कारा ... शर्माकर आंखें बंद कर ली।
तेरी चूत को बहुत पीटा.....ला उसे प्यार कर देता हूं......हायययय रे... अम्मा पेशाब में भीगी हुई, ते फूली फूली चूत कितनी प्यारी लग रही है लग रही है ......मन कर रहा है ... दुबारा इस में घुस जाऊं।
आसिफ ने मेरी जांघों को अपने हाथों से पकड़ ... अपना मुंह मेरी चूत पर लगा दिया और.....लपड लपड मेरी चूत चाटने लगा ......हाययययय मेरे बच्चे ... उईईईईई .... इतना तेज तेज मत चाट...... गुदगुदी होती है..... में अपनी चूत को उछालते हुए चिल्लाईं । मगर आसिफ पर मेरे चिल्लाने का कोई असर नहीं हुआ ......वो सख्ती से मेरी जांघों को पकड़े , अपनी जीभ मेरी चूत पर चलाएं जा रहा था।
आईईईईईईई हां हां ....ऐसे ही चाटता रहा मेरे राजा, उईईईईई दाने को ज्यादा मत छेड़ रे औहहहह .... औहहहह ....... में बदहवासी से अपनी दोनों चूचियों को अपने हाथों से रगड़ते हुए अपना सिर इधर-उधर पटक रही थी ....
आहहहहहह ऊईईईईईईई उउउउउउउ मेरे बेटे में झडने वाली हूं ऐसे ही करता रह रे ...... मेंने आसिफ का सिर अपने हाथों से चूत पर दबा लिया था........ सीईईईईईईईई ऊऊऊऊऊऊ। गयी ...गयी। हाय मेरी अम्मा में झड़ रही हूं
गईईईईईईईईई रे मेने अपनी चूत छ इंच उपर अकड़ा ली थी मुझे मेरी चूत से रज का सैलाब निकलता लगा।
हायययययय रे मेरे बेटे तूने तो मुझे बुरी तरह झाड़ दिया रे ..... मेरी तो जान ही निकल गई ..... में पस्त होकर अपनी जांघें फैलाकर लेटी थी .... आसिफ ने मेरे रज की एक एक बूंद चाट ली थी।
आहहहहह बेटा तूने तो मुझे तृप्त कर दिया.... में थके हुए स्वर में बोली।
मेरी अम्मा तू तो तृप्त हो गई...... मेरे इस लौड़े का क्या होगा .... आसिफ अपने 8 इंच के तने हुए लंड को दिखाते हुए बोला......जो की बुरी तरह झटके खा रहा था।
हायययययय रब्बा...अब तो मेरी चूत इसको नहीं झेल पायेगी... अभी अभी तो झडी है.... फिर तूने उसको इतना पीटा है कि दर्द भी कर रही है।
अरे मेरी जान तेरी चूत मारने का अभी मेरा इरादा भी नहीं है...... पहले तो मेंने तेरे उस प्यारे हल्के भूरे गुलब के फूल को खिलाना है.....चल बन जा घोड़ी।
कहानी जारी रहेगी।
क्यों बेटा नींद नहीं आ रही ? मेंने आसिफ के सीने पर हाथ फेरते हुए पूछा।
ओह सॉरी अम्मी आप की नींद में खलल पड़ा । आसिफ ने तुरंत से अपना हाथ मेरे कूल्हों पर से हटा लिया।
मेंने आसिफ का हाथ पकड़ कर पुनः अपने कूल्हों पर रख दिया। बेटा इन्हें ऐसे ही सहलाता रह मुझे अच्छा लग रहा है , आज बहुत समय के बाद कोई मर्द मेरे कूल्हों को इतने प्यार से सहला रहा है। कह कर मेंने अपना चेहरा उसके चौड़े सीने में गड़ा दिया।
आसिफ फिर से मेरे कूल्हे सहलाने लगा था ।
बेटा तू अभी तक क्यों नहीं सोया ।..... मेंने उसके बालों में हाथ फेरते हुए पूछा ।
बस ऐसे ही अम्मी, नींद नहीं आ रही । आसिफ उदासी से जबाब दिया।
बस ऐसे ही नींद नहीं आ रही..... ये क्या बात हुई, ......क्या परेशानी है बताता क्यों नहीं। मेंने जोर देकर पूछा
अम्मी मेंने कहा ना कुछ नहीं हुआ आप सो जाईए। आसिफ थोड़ा झल्ला कर बोला।
में अपना हाथ उसके सीने से नीचे खिसका कर उसके लंड पर ले गई , जो कि लोहे की मोटी रांड की तरह सख्त तना हुआ था।
क्या ये तुझे सोने नहीं दे रहा । मेंने उसके लंड को सहलाते हुए पूछा।
नहीं रे अम्मी, ये तो रोजना रात को ऐसे ही खड़ा रहता है । मगर आप इसको छोड़ दो नहीं तो बहुत परेशानी हो जाएगी।
कोई परेशानी नहीं होगी । मेंने उसके लंड को सहलाना जारी रखते हुए कहा , ... अगर अब परेशानी होगी भी तो अब तेरी अम्मी तेरे पास है ना ..... में इसकी सब परेशानियां दूर कर दूंगी..... में शरारत पूर्ण स्वर में बोली।
ले आजा मेरे बच्चे , इसको सुला दूंगी तो तुझे भी नींद आ जाएगी। मेंने उसे अपने ऊपर लेने की कोशिश करते हुए कहा ।
ना करो अम्मी रहने दो , बुखार से आपका शरीर कितना तप रहा है ..... और आपको मेरे लंड की चिंता लगी है। .... आसिफ मेरा हाथ अपने लंड पर से हटाते हुए बोला।
अम्मी एक बात बताओ, कि दिन में जो कुछ भी हुआ उससे आपका मन तो आहत नहीं हुआ। आसिफ ने गम्भीर होते हुए पूछा। उसका हाथ अभी भी मेरे कूल्हे सहला रहा था।
अब जो हो चुका है, उस पर क्या बोलूं । मेने बुझे मन से कहा।
अम्मी , मुझे यही बात परेशान कर रही है, कि आज जो कुछ भी हुआ , अच्छा नहीं हुआ। वो साला दौ कौड़ी का इन्सान रमेश मेरे सामने मेरी अम्मी , जो मुझे अपनी जान से भी ज्यादा अजीज है , को मार रहा था , गालियां दे रहा था, हरामजादी, बहनचोदी, रांड , रंडी और ना जाने क्या क्या ।
चल बेटा जो बीत गया उस पर झाड़ू फेर ..... क्यों इतनी टेंशन ले रहा है..... देख चुदाई के वक्त जज़्बात काबू में नहीं रहते इन्सान कुछ भी बोलता है .... में और तू भी गालियां दे रहे थे,.......फिर देख झडने के बाद वो मुझे कितनी इज्जत दे रहा था ....मुझे महान और दैवी ना जाने क्या क्या बता रहा था । मेंने बात खत्म करने कि नियत से कहा।
नहीं अम्मी बात ये है कि इसमें कसूर मेरा ही है , ये प्लान मेंने ही बनाया था। आसिफ का गला भर आया था।... में आपसे बहुत प्यार करता हूं, और किसी भी हालत मे आपको पाना चाहता था , सीधे आप से कहने में झिझक रहा था, इसलिए ऐसा किया।
अगर ये बात है , तब तो तूने गलत किया। पर चल अब इतना गिल्ट फील मत कर , जो होना था वो हो गया , तू मुझे पाना चाहता था सो पा लिया , हमेशा के लिए। अब में रोजाना तेरे बिस्तर की शोभा बढ़ाउंगी , जैसे तेरी मर्जी हो वैसे मुझे चोदना। मेंने प्यार से उसके चेहरे को चूमते हुए कहा।
वो सब ठीक है अम्मी , मगर अब में रमेश को कभी इस घर में घुसने नहीं दूंगा और अगर उसने हमें ब्लैकमेल करने की कोशिश करी तो उसके हाथ पैर तोड़ दूंगा।... आसिफ उत्तेजित स्वर में बोला।
जैसा तू ठीक समझें कर बेटा । मेंने उपरी मन से बोला, जबकि मन ही मन रमेश से ना चुदने के ख्याल से ही में परेशान हो गयी थी । क्योंकि वो रमेश ही था जिसने मुझे जम कर चोदा था , मेरे शरीर के सारे कस बल ठीले कर दिये थे , रमेश ने मेरी जिंदगी की सबसे बढ़िया चुदाई करी थी । वो उसका गाली देना , थप्पड़ मार मार कर मेरी गान्ड लाल कर देना । सब किसी सपने के पूरा होने जैसा था।
इस बात का ख्याल जेहन में आते ही, मेरी चूत फिर बहने लगी थी । मैंने आसिफ के होंठों पर अपने होंठ रख दिए और उसे अपने ऊपर खींचने लगी।
अम्मी मान जाओ आपको इतना तेज बुखार है सारा बदन तप रहा है , और आपको मेरे लंड की परेशानी की पड़ी , आप आराम करें। मुझे अभी अपने आप नींद आ जाएगी।
नहीं , मेरे बुखार की चिंता मत कर , तू तो आजा , मुझे तो चुदाई करवानी है । कह कर में शरमाकर कर में उसके जोर से चिपक गई , और एक एक हाथ नीचे ले जाकर उसका मोटा तना हुआ लंड सहलाने लगी।
उफफफ आसिफ के मुंह से एक सिसकारी निकली .... अम्मी आप तो बहुत चुद्दकक्ड हो , क्या दिन में हुई चुदाई से आपका मन नहीं भरा ।
आहहहहह नहीं, बेटा प्लीज मेरे ऊपर आजा में बहुत चुदासी हो रही हूं। मेंने लरजते हुए स्वर में कहां।
अम्मी सुबह जैसी रगड़ाई हमने आपकी की हर कामुक से कामुक महिला एक हफ्ते के लिए चुदाई से तौबा कर ले।
ये सब मुझे नहीं पता , तू तो मेरे ऊपर आ , ऊफफफफ बहुत परेशानी हो रही है , कह कर मैंने जबरदस्ती अपने ऊपर खींचा और अपनी एक चूंची पकड़ कर उसके मुंह में दे दी।
आसिफ ने मेंरी चूंची को मूंह में दबा लिया और जोर जोर से चूसने लगा। मेरा शरीर एकदम से सिहर उठा ....सीईईईईईई आहहहह बेटा ऐसे ही चूसता रे , मेरे बच्चे उउउउउउउ निचोड़ लें अपनी मां के थन को। औहहहहहह मेरे खुदा आहहह कितना सकून मिल रहा है।
आहहहह। इसमें से निचोड़ू क्या अम्मी इसमें दूध तो सूख चुका है। आसिफ एक हाथ से मेरी कमर और पुष्ट जांघों को सहलाते हुए बोला।
ऊफफफफ इसी लिए तो कह रही हूं बेटा अपनी अम्मी के पेट में बच्चा डाल दें , बना दे अपनी मां के पेट को मटका । ईईईईईईईई फिर तुझे ऊऊऊऊऊ तीन चार साल के लिए दूध मिल जाएगा।
औहहहह मेरी अम्मी में तो चहता हूं कि तू मेरे बच्चे की मां बने , ... आसिफ का हाथ अब मेरे पेडू ( Pelvis area ) को मुठ्ठी में दबा कर मसल रहा था .... मगर लोग मजाक बनाएंगे कि 45 साल की उम्र में आपने बच्चा जना है।....हायययय ... आसिफ सिसकारियां लेता हुआ बोला...
आपके बदन में तो जादू है किसी को भी दिवाना बना दे , कितनी मुलायम चमड़ी है अम्मी आपकी।
ऊऊऊऊऊ औहोओओ.... बेटा लोगों का काम कहना है, कहने दें , वो चिढ़ेंगे भी कि तेरी मां इस उम्र में भी बच्चा पैदा करने का दमखम है । आहहहहहह रे इतनी जोर से मत मसल रे , तकलीफ़ होती है
अच्छा अम्मी ये बता कि अब्बू को क्या जबाब देगी। आसिफ का हाथ मेरे पेडू से (pelvis ) से हट कर , मेरी चूत के नीचे गांड़ और बीच के हिस्से को सहला रहा था ।
सीईईईईईई। वो भी सोच लेंगे , में उसके पास कुछ दिन के लिए हो आऊंगी। आईईईईईईई आसिफ ने मेरी चूत को मुठ्ठी में कस लिया था । तू.......आहहह मारेगा मुझे, ऐसे कोई करता है क्या ।
अम्मी तेरा बदन बहुत मस्त है रे रुका नहीं जाता , तेरे ये मोटे मोटे मम्मे , थोड़ा सा बढ़ा हुआ पेट , ये तेरी फूली फूली चिकनी चूत,ये भरी भरी जांघें, ये मीडियम साइज के चूतड , हरामजादी रंडी , मन करता है कि तेरे को खा ही जाऊं।
आहहहहह खा जा बेटा , ऐसे ही गालियां देते रहे , तेरी मां को रंडी बन कर चुदवाना पसंद है । आईईईईईईई ...ये सारी उंगलियां एक साथ अंदर डाल देगा क्या ....ऊंऊऊऊऊऊ
बहुत अच्छा लग रहा है मेरे राजा। ..... मेंने बिल्कुल सीधे लेट कर अपने अपने घुटने मोड़ लिये थे।
आसिफ मेरी चूत से खेल रहा था ...... मां तेरी चूत तो बहुत पानी छोड़ रही है ।
होओओऐऐ.....बेटा बहुत चुदास लग रही है रे , कूट दे मेरी चूत को .......आईघीघघघघ मेरे दाने को ( भगनास ) तो ऐसे मत मसल रे ,दर्द होता है तेरी मां को ।
बहनचोदी तेरे को तगड़ी चुदाई भी चाहिये और नखरे भी करने है। ......कहते हुए आसिफ ने मेरी चूत पर एक चपत लगा दी।
ऊईईईईईईई अम्मा रीईईई में मरी ......में एक दम से उछल पड़ी, क्या कर रहा है , प्यार से नहीं कर सकता क्या।
अरे वाह ऐसे तेरा तबला बजाने में तो बहुत मज़ा आता है,
, क्या कमर उछालती है । तड तड तड आसिफ ने एक साथ तीन थपकियां मेरी चूत पर मारी ।
में दर्द से उछल पड़ी.....ऊऊऊऊऊऊ मर गई रे ,.... आ कोई तो बचाओ लो..... इस जालिम से । पर हकीकत यह थी कि ऐसी दर्द भरी चुदाई में मुझे मजा आ रहा था , में चाहती थी आसिफ ऐसे ही तकलीफ़ दें दे कर चोदे ।
ले अम्मी तेरे बदन को चाटूंगा में तो ।
तेरे को मेरा बदन इतना अच्छा लगता है। ...... मेंने मुस्कराते हुए कहा।
रांड तेरे को तो ऐसे 90 साल का बुड्ढा भी देख लेना तो तेरी चूत में जबरदस्ती पेल दे।
अच्छा जी , मेंने मुस्करा कर कहा , और लेटे लेटे अपनी बाहें फैला दी ........ आजा फिर सोच क्या रहा है।
आसिफ सपड सपड मेरे बदन को चाटने लगा मेरे कान , गर्दन , बगल , मम्मो से होता हुआ उसने मेरे उभरे हुए पेट में मुंह गड़ा दिया ।
में आंनद में गोते लगा रही थी.....आहहहहह ऊऊऊछछ मेरे राजा ऐसे ही , पेट पर ऐसे मत कर गुदगुदी होती है रे । ईईईईईईईई नाभि में जीभ डाल कर मत चाट बहुत गुदगुदी होती है ....ऊऊऊऊऊऊ....सहन नहीं होती , में मछली की तरह बल खा रही थी।
अम्मी तेरा शरीर इतना कामुक है ना , बहनचोद , कि मेरा मन करता है इसमें वापस घुस जाऊं।
औऔऔऔऔ मेरा भी ऐसा ही मन करता है बेटा , तेरे को अपने अंदर घुसा लूं।
मां जरा उल्टी लेट जा तेरे चूतड चाटूंगा।
हां , ले बेटा हो गयी उल्टी ,इनको मसलना भी , जोर जोर से , चाहें तो थप्पड़ भी मार देना , मुझे अच्छा लगता है रे । आआआआआइ ऐसे ही रगड .... ऐसे ही मसल मेरे बेटे ........ईईईईईईईई थोड़ा धीरे काट रे .....आहहहहहह हां थप्पड़ थोड़ा और जोर से मार रे .......ईईईईईईईई ऐसे ही।....... मुझे मेरे चूतड़ों को प्रताड़ित करवाने में विशेष मजा आ रहा था।
मां तेरे चूतड तो मख्खन है मख्खन , मां थोड़ी सी गांड़ ऊपर उठा ना , हां ऐसे ही ।
आसिफ की जीभ मेरे कूल्हों के बीच की खाई में थिरक रही थी , इससे होने वाला संसेशन मेरे काबू से बाहर हो रहा था और मैं अपने कूल्हे इधर उधर हिला रही थी। .......आहहहहह बेटा रूक जा बहुत गुदगुदी हो रही है बड़ा अजीब सा लग रहा है।....... में अपनी कमर को हिलाते हुए बोली।
ऊऊऊऊ अम्मी तेरी गांड़ का हल्का भूरा छेद कितना प्यारा है रे , एकदम गुलाब का फूल लग रहा है । .... आसिफ अपने दोनों हाथों से मेरी गान्ड खोलते हुए बोला।
अब आसिफ अपनी जीभ की नोक से मेरी गान्ड का छेद कुरेदने लगा था ।
आहहहहहह ऐ छी बेटा ये क्या कर रहा है , ये अच्छा नहीं है , हटा अपनी जीभ वहां से ।
आहहहह अम्मी... क्या बात कर रही है, इतना तो अच्छा है... आसिफ मेरी गान्ड में अपनी ऊंगली डालने की कोशिश करने लगा ।
आईईईईई बेटा ये क्या कर रहा है , ऐसे सूखी उंगली अंदर नहीं जाएगी। ... इस पर कुछ चिकनाई लगा।
आसिफ ने मेरी गान्ड के छेद पर ढेर सारा थूका , और एक झटके में अपनी ऊंगली मेरी गान्ड में घुसा दी और और तेज तेज चलाने लगा। ..... अब तो चली गयी मेरी रांड।
सीईईईईईई आहहहहह ..... बेटा अब डाल दे।
क्या डाल दूं...
अपना डाल दें , मेरी में। आहहह बर्दाश्त नहीं हो रहा।..... में गिड़गिड़ाते हुए बोली
अपना क्या......साफ साफ बोल।
अरे बेटा अपना लंड मेरी चुत में घुसेड़ दे.......आहहह जल्दी कर इससे ज्यादा साफ क्या बोलूं। में झुंझला कर बोली।
आहहह...अभी कहां मेरी गुलबदन, अभी तो तेरी चूत को चूस चूस कर झाड़ना है ...... तेरी चूत को पीट पीट कर तेरा पेशाब निकलवाना है ...... बहनचोद चुद्दकक्ड तेरे को इतनी जल्दी थोड़े ही छोड़ दूंगा.......आहहहह सारी रात तेरे बदन को रगड़ूंगा। आसिफ पूरी ताकत से मेरे कूल्हे मसल रहा था ।
चल रांड सीधी लेट जा जरा चूत दिखा अपनी।
में चुपचाप सीधी हो गई।
देखो रंडी की चूत कैसे आंसू बहा रही है , लंड खाने के लिए , चादर तक गीली कर दी ..... चादर तो अभी और गीली करवाऊंगा ।.....चल मेरी अम्मी जान अपनी टांगें ऊपर कर लें तेरे को जन्नत का मजा देता हूं , ये तेरा नया खसम तेरे को चोद चोद कर हर साल एक बच्चा पैदा करेगा।
आहहहहहह अब आ जा ना क्यों तड़पा रहा है , हायययययय अम्मा री.... अब नहीं रूका जा रहा ....., मेरा भोसड़ा जल रहा है .....जल्दी कर मादरचोद।.... में गुस्से में चिल्लाईं हालात मेरे काबू से बाहर होते जा रहे थे।
में सोच रही थी कि अब आसिफ अपना लंड घुसाएगा,.....मगर उसने अपना मूंह मेरी चूत पर रख दिया और सड़प सड़प मेरी चूत चाटने लगा।
ऊईईईईईईईईई रब्बा... ऐसे ही हां हां हां ऐसे ही चांट बेटा , आहहहहहहहह डाल दें अपनी जीभ उस छेद में जहां से तू निकला .....खोद दे बेटा उसे .....ईईईईईईईई। दाने को मत काट रे .....मर जाऊंगी।...... में तेज तेज कमर उछाल कर अपनी चूत चटवा रही थीं।
अम्मी ऐसा कर तू मेरे मुंह पर पेशाब निकाल दें , सुबह जब से तेरे पेशाब में तेरी चुदाई करी ना , तब से तेरे पेशाब का एक नशा सा छा गया है...... गीली चादर पर तुझे चोदने में बहुत मज़ा आया था
नहीं ये किसी भी हालत में नहीं हो सकता । सारा बिस्तर खराब हो जाएगा .. मेंने थोड़े सख्त स्वर में बोला।
बिस्तर खराब नहीं होगा .... सिर्फ चादर गीली होगी ...... मुझे पता था कि तू रांड रात को मेरे पास चुदवाने जरूर आयेगी .... इसलिए मैंने पहले ही नीचे प्लास्टिक बिछा दी थी।
फिर भी मैं.... तेरे मुंह पर पेशाब तो हरगिज नहीं करूंगी, .....तू कुछ भी कर ले
चल ठीक है, मेरे मुंह पर ना कर .......कह कर आसिफ मेरी टांगों के के बीच बैठ गया........ और एक तेज चपत मेरी चूत पर मारी।
आईईईईईईई रे मर गयी , में दर्द से तड़प उठी मार क्यों रहा है हरामी......हाय मेरी मां .... बहुत दर्द हो रहा है।
तभी मेरी चूत पर तड़ाक तड़ाक दो चपत और पड़ी , ईईईईईईईई में ऐसे चिल्लाईं जैसे कोई मेरी गर्दन रेत रहा हो........ कुत्ते के जने थोड़ा धीरे मार ले।
अच्छा , मेरी प्यारी अम्मी जान....अब ये चपत तेरे तब तक पड़ती रहेगी , जब तक तू अपना सारा पेशाब निकाल नहीं देती ....... आसिफ किसी गुंडे की तरह बोला।
आसिफ ने मेरी चूत पर लगातार थपथपाना शुरू कर दिया था .......आईईईईईईई नहीं ....औऔऔऔऔ मान जा..... दर्द होता है रे ....... हरामजादे तेरे बाप को भी मेरी चूत पर मूतने का शौक था ......और तुझे.... मुझे मुताने का शौक चढ गया ..... में दर्द और गुस्से से चिल्ला रही थी।
थोड़ी देर तो में सहन करती रही पर जब मेरी बरदाश्त से बाहर हो गया तो मैंने पेशाब की धार छोड़ दी....... मेरी पेशाब की धार उसकी थपकियां देते हाथ से टकरा कर किसी फुव्वारे की तरह चारों ओर फैलने लगी.... जिससे मेरा और आसिफ का बदन तथा चादर मेरे पेशाब में भीग गये।
आहहहहह मेरी प्यारी मां..... यही तो मैं कह रहा था.....देख कितना मज़ा आ रहा है...... कितनी मादक गंध है .... तेरे पेशाब की ..... जन्नत का मजा आ गया..... अम्मा तूने तो मुझे ये अजीब शौक लगा दिया.....अब तो ..तू जब भी चुदेगी .... मूतना जरूर पड़ेगा।
हट कैसी गंदी बातें करता है रे तू ......एक तो अपनी अपनी मां को चोद रहा है..... फिर उससे अपने सामने पेशाब भी करवा रहा है।
देख अम्मा चुदाई में कोई मां बेटा नहीं होता....सिर्फ औरत और मर्द होते हैं.......और मैं तो तेरा पक्का आशिक हूं रे ।
अच्छा अब मार तो मत .... पेशाब की थैली खाली हो गयी ....... में कर चुकी.... अब नहीं निकल रहा। आहहहहहहहह रे बेटा..... तूने बहुत दर्द दिया। में दर्द से कराहते हुए बोली।
मुझे मालूम है रंडी कि तू ड्रामा कर रही है , ऐसे पिट पिट कर चुदना तुझे पसंद है । बोल में सच बोल रहा हूं ना। ....... आसिफ ने मेरी तरफ मुस्कुराते हुए पूछा।
बफ्फफ....... चल चूतिया.... मेंने उसे दुत्कारा ... शर्माकर आंखें बंद कर ली।
तेरी चूत को बहुत पीटा.....ला उसे प्यार कर देता हूं......हायययय रे... अम्मा पेशाब में भीगी हुई, ते फूली फूली चूत कितनी प्यारी लग रही है लग रही है ......मन कर रहा है ... दुबारा इस में घुस जाऊं।
आसिफ ने मेरी जांघों को अपने हाथों से पकड़ ... अपना मुंह मेरी चूत पर लगा दिया और.....लपड लपड मेरी चूत चाटने लगा ......हाययययय मेरे बच्चे ... उईईईईई .... इतना तेज तेज मत चाट...... गुदगुदी होती है..... में अपनी चूत को उछालते हुए चिल्लाईं । मगर आसिफ पर मेरे चिल्लाने का कोई असर नहीं हुआ ......वो सख्ती से मेरी जांघों को पकड़े , अपनी जीभ मेरी चूत पर चलाएं जा रहा था।
आईईईईईईई हां हां ....ऐसे ही चाटता रहा मेरे राजा, उईईईईई दाने को ज्यादा मत छेड़ रे औहहहह .... औहहहह ....... में बदहवासी से अपनी दोनों चूचियों को अपने हाथों से रगड़ते हुए अपना सिर इधर-उधर पटक रही थी ....
आहहहहहह ऊईईईईईईई उउउउउउउ मेरे बेटे में झडने वाली हूं ऐसे ही करता रह रे ...... मेंने आसिफ का सिर अपने हाथों से चूत पर दबा लिया था........ सीईईईईईईईई ऊऊऊऊऊऊ। गयी ...गयी। हाय मेरी अम्मा में झड़ रही हूं
गईईईईईईईईई रे मेने अपनी चूत छ इंच उपर अकड़ा ली थी मुझे मेरी चूत से रज का सैलाब निकलता लगा।
हायययययय रे मेरे बेटे तूने तो मुझे बुरी तरह झाड़ दिया रे ..... मेरी तो जान ही निकल गई ..... में पस्त होकर अपनी जांघें फैलाकर लेटी थी .... आसिफ ने मेरे रज की एक एक बूंद चाट ली थी।
आहहहहह बेटा तूने तो मुझे तृप्त कर दिया.... में थके हुए स्वर में बोली।
मेरी अम्मा तू तो तृप्त हो गई...... मेरे इस लौड़े का क्या होगा .... आसिफ अपने 8 इंच के तने हुए लंड को दिखाते हुए बोला......जो की बुरी तरह झटके खा रहा था।
हायययययय रब्बा...अब तो मेरी चूत इसको नहीं झेल पायेगी... अभी अभी तो झडी है.... फिर तूने उसको इतना पीटा है कि दर्द भी कर रही है।
अरे मेरी जान तेरी चूत मारने का अभी मेरा इरादा भी नहीं है...... पहले तो मेंने तेरे उस प्यारे हल्के भूरे गुलब के फूल को खिलाना है.....चल बन जा घोड़ी।
कहानी जारी रहेगी।
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