Nice update....Update 9
फिर तनु स्माइल कर देती है उसको ये खेल अच्छा लग रहा था।
ऐसे ही रात गुजर जाती है।
अब आगे
सुबह सुबह चिड़ियों की चह चहाने से साक्षी और तनु की एक साथ ही नींद खुल जाती है जिससे वो देखती है की उन दोनो ने ही वीर को अपने अपने साइड जकड़ रखा है और दोनो ने अपनी टांग वीर के ऊपर लाद रखी है।
तभी उन दोनो की नज़र आपस में पड़ी तो दोनो झेप जाती है और दोनो ने जल्दी से वीर को देखा।
साक्षी - सो रहा है।
तनु - अनु
साक्षी जल्दी से अनु को देखती है जो सो रही थी।
साक्षी - वो भी सो रही।
तभी अनु खासती है और दोनो जल्दी से आंखों को बंद कर लेती है।
जैसे ही उन दोनो को कन्फर्म हुआ की अनु सो चुकी है दोनो जल्दी से उठ जाती है और रूम में भाग लेती है।
साक्षी - ओए सेक्सी सुनो जरा
तनु - क्या है
साक्षी - रात को मेने देखा कुछ
तनु - क्या
साक्षी - मैने देखा एक लड़की रात को खेल रही थी
तनु कुछ नही बोलती और साक्षी फिर हस्ते हुआ जाने लगती है तभी तनु कहती है उसको
मैने भी कुछ देखा वैसे
साक्षी - क्या देखा
तनु - मैने देखा एक लड़की लड़की रात को चुप चाप हस रही थी और सीने में घुसी हुई थी
अब साक्षी कहती है सच्ची बताऊं तो उसके साथ रहने मैं अच्छा लगता है।
तनु - हा दिन भर गांड़ के नशे में चूर रहता है घूरता रहता है।
साक्षी हस्ते हुआ कहती है बेचारा अब क्या करे हम दोनो को देख कर ही काम चला लेता है।
तनु - लेट हो रही है खाना बना कितनी देर तक सो रही थी हम दोनों।
साक्षी - कुत्ते ने ऐसे चिपका रखा था की बहुत प्यारी नींद आई पता ही नही चला कब सुबह हो गई यार
तनु - मेरी बेटी अब खुश रहने लगी है।
साक्षी - और तू
तनु - काम कर मैं नहा कर आती हूं
साक्षी उसका हाथ पकड़ लेती है और कहती है मुझे जवाब चहिए।
तनु - मुझे कोई जवाब नही देना और अगर मेरी बेटी की खुशी जरूरी है तो उसके लिए सब करूंगी
साक्षी - अच्छा और अगर तुझे उसने खुश रहना जीना सीखा दिया तो
तनु - तब तू जो कहेगी।
साक्षी - फिर वादा कर खुद प्यार से साड़ी उतारेगी
तनु - ठरकी कही की चल वादा लेकिन दिल्ली बहुत दूर है समझी।
तनु वहा से निकल जाती है और साक्षी दूर खड़ी हो कर उसे देख रही थी और कहती है एक बार हम दोनो को जीना सिखा दो ना वीर तुमने जो गलती करी है वो तुमको ही सही करनी पड़ेगी एक बार सब ठीक कर दो फिर वादा करती हूं खुद साडी उतारूंगी।
तनु - चल हट लंबी लंबी सोचती है,खाना तुझे बनाना है।
साक्षी - सोच ही सही लेकिन अब एक आस तो है
तभी वो दोनो बाहर आती है तो दोनो की नज़र ही जम गई थी।
सामने अनु वीर को बाहों में भर कर के लेटी है और वीर उसके ऊपर लेटा है।
साक्षी - बड़े ही सेक्सी अंदाज में लेटी है देखो, और दिन भर हम दोनो को बोलती फिरती है की मैं वीर से नफ़रत करती हूं, ये बोल बोल कर मेरा दिमाग खा गई और सोई देखो कैसी है।
तनु - उसकी कोई गलती नही है चल अब
साक्षी - नही चलूंगी तू चल मैं अपनी बेटी के साथ नहूँगी आज
तनु - मुझे पता है तू कितनी संस्कारी है चल अब
तभी साक्षी कुछ बोलने वाली थी लेकिन तनु उसका मुंह दबा देती है।
साक्षी - नही उठाऊंगी पक्का
तभी तनु उसका मुंह छोड़ देती है और साक्षी चिल्लाती है "ओए ठरकी उठ जा"
इधर राज अपने पापा उदय के साथ बैठा था जो खेत के सिलसिले से बात कर रहे था।
राज - पापा जमीदार हमारी जमीन पर पानी नी आने देता कुछ करना पड़ेगा वर्ना इस साल की फसल खराब हो जाएगी।
तभी उसके चाचा कहते है बेटा राज वो जमीदार से हमारी बनती कम है हमीं ने उसके स्कूल को खुलवाने से रोका था वही बदला ले रहा है वो साला
उदय - तुम कुछ मत करो वर्ना वो इंसान बहुत बुरा है मारने से पहले सोचेगा नही।
राज - लेकिन उसका दिल जीत लिया तो, जन्नत का मजा है फिर
तभी रसोई में चाय बना रही निधि ये सुन कर कहती है जन्नत का मजा बहन चोद साला रात को बिस्तर पर चोदता नही बड़ा आया जन्नत।
निधि - साला कहती हूं धीरे धीरे चोद ना, चूस तब मजा भी आया बीवी को खुश रख नही पता।
तभी उसको राखी कहती है अरे बिट्टू कब क्या सोच रही हो बेटा
निधि - कुछ नही बुआ
राखी - बीवी को खुश रहने के लिए पति का साथ जरूरी है।
निधि कुछ बोलती तभी उसको आवाज आती
"रुक जा डायन, आज तेरा सर फोड़ दूंगी"
"ही ही ही ही ही ही"
"तू तो पिसचिनी है पता है"
तभी ये सुन कर निधि कहती है बुआ बीवी के खुश रहने के लिए पति का पास होना जरूरी है साथ जरूरी है।
राखी कुछ कहती तभी उसको निधि कहती है कभी तनु और साक्षी को इतना खुश देखा है पहले दोनो जो हमेशा खोई रहती है अब एक सा तेज आ गया है उनकी आंखों में।
राखी -
निधि - हा वीर के पास होने से वैसे हमारी बिल्लो अब अच्छे से लाइफ जीयेगि।
राखी - मैं हैरान हूं ये घर की खिसयाई बिल्ली से शादी होने के लिए कैसे मान गई तनु और साक्षी।
निधि - दोनो की लाडली है और ऊपर से डिट्टो साक्षी की तरह दिखती है।
इधर इतना हल्ला सुन कर अनु की नींद खुल जाती है वो जब आंखों को खोलती है तो देखती है आजू बाजू उसकी बहने जा चुकी थी।
अनु- फिर देखती है की वो वीर के नीचे सोई है
तभी अगले ही पल वो वीर को धकेल देती है और उसकी सास पूरी ऊपर नीचे हो रही थी।
पहली बार किसी ने अनु के जिस्म को छूआ था बेचारी कप कापा गई इस बात से।
तभी ये झटके से वीर उठ जाता है।
तब तक अनु जा चुकी थी।
वीर- ये सुबह सुबह बहन चोद पेल गया, मेरी भी जिंदगी मेंटोस खा कर लिखी गई थी एक से एक सुंदर लड़की मेरी वाइफ जिसके ख्वाब सब देखते है वो वो मेरी है।
वीर - लेकिन मजाल है किसी को हाथ भी लगा दूं मां चोद देंगी मेरी।
वीर - लेकिन कोई नही सब खुश रहे बाकी सबके लिए प्यार खुद जाग जाएगा सबसे पहले मैं अपनी परी को उठा दूं।
वीर काव्या के पास आता है और उसके माथे पर हाथ फेरता है अरे मेरा बेटू उठ जाओ, जाओ।
काव्या - उफ्फ पापा सोने दो ना।
वीर - धत चलो उठो जल्दी से फिर,जलेबी खिलाऊंगा पक्का।
काव्या - साथ मैं पकोड़ा भी गरम गरम
वीर को काव्या की ये तुतराती हुई आवाज बहुत प्यारी लगती है।
काव्या अब उठ कर वीर की गोद में बैठ कर लिपटी हुई थी।
तभी वीर के दिमाग में एक आइडिया आता है और वो काव्या से कहता है बेटू आपको पकोड़ा खाना है ना।
काव्या - हा
वीर - तब आपको पापा की एक बात माननी पड़ेगी।
काव्या - मैं तो आपकी सारी बात मानती हूं ना
वीर - ये हम दोनो की scerat बात है ओके।
काव्या भी वीर से धीरे से फुसफुस्ती हुई कहती है पक्का छोटा भीम वाला प्रोमिस।
वीर - मैं जब पकोड़ा लाऊंगा ना तो आप वो आप खाने से पहले कहना मम्मी आप पापा को अपने हाथो से खिलाओ ना।
काव्या - ठीक है तीनो मम्मी को कह दूंगी लेकिन शाम को चाकलेट लुंगी एक।
वीर - पक्का
काव्या - ही ही ही आप बेस्ट पापा हो, हमेशा ऐसे ही हस्ते रहा करो आप नही थे, तो मम्मी बहुत रोती थी।
वीर- पक्का अब नही जाऊंगा कभी अब तो हर दम तुम्हारे पास रहूंगा।
तभी वीर जल्दी से बाहर आता है और तुरंत पकोड़ा और जलेबी वैगर ले कर आता है
वीर - हाय अब मजा आएगा अब तीनो को मुझे खिलाना पड़ेगा ।
वीर अंदर आता है तो सामने उसको अनु दिख जाती है ।
वीर - ये तो पूरा साक्षी की फोटो कॉपी।
तभी अनु देखती है की वीर उसको देख रहा है और वो कुछ नही कहती।
वीर अंदर आ कर खाने का समान काव्या को दे देता जिसको तनु और साक्षी देख लेती है।
काव्या तो समान ले कर अंदर आ जाती है अनु और साक्षी के पास, तभी तनु बाहर आती है और कहती ये क्या है ये सब
वीर - क्या क्या है
तनु - ये सब क्या लाए हो, क्यो इतने पैसे वेस्ट कर रहे हो फालतू चीज के लिए कल भी मुझे ,2000 दिए था।
वीर - फालतू चीज के लिए नही है कुछ भी, मेरी वाइफ हो तुम समझी, तुम्हारे चहरे पर खुशी देखना चाहता हूं अब आदत डाल लो इन सब की।
तनु - क्यो कर रहे हो ये सब हा
वीर - तुम्हारे हसी के लिए।
तनु कुछ नही बोलती बस वीर को देखती है एक टक।
वीर- वैसे बहुत सुंदर लग रही हो अभी ऐसे सजी रहा करो ना हम बाप, बेटी के लिए।
तभी तनु को अनु बुलाने आती है और वो अंदर चली जाती है और उसके पीछे अनु भी चली जाती है और वीर वापिस जाते टाइम उसकी गांड़ देखने लगा अनु को इस बात का पता चल गया।
उसकी इस बात को साक्षी ने भी नोटिस किया
साक्षी - शर्म तो आती नही इसको ऐसे गुरते हुए, तुझे दिक्कत होती है तो मना कर दिया कर।
अनु - क्या कह कर मना करूकी अपनी पत्नी को ऐसे घूरो मत, इतना अपनापन दिखाओ, वैसे आपको और तनु दीदी को क्यों दिक्कत नही होती।
तनु - तेरे सुर तो एक दिन मैं ही बदल गए।
ये सुन कर अनु झेप जाती है
साक्षी चल खा चुप चाप फिर बाहों में सोना भी तो है
वही ये सुन कर अनु के गाल लाल हो गया थे।
अनु - हा तो पती है मेरा।
साक्षी - क्या है
तनु - मत छेड़ो उसको ।
तभी वीर अंदर आता है तभी उसका कॉल बज जाता है।
वीर - सुबह सुबह ही बहन के लन्ड का कॉल आ गया
वीर - हेलो
जमींदार - बेटा जरा 4 घंटे के लिए कार ले कर चले आओ 12 बजे तक छोड़ दूंगा। पैसे भी ले लेना 4000
वीर - ठीक है
जमीदार - सुनो
वीर - हा
जमीदार - तुम मेरे खास आदमी हो परेशान मत हो बड़ा भाई समझ अपना
वीर - धन्यवाद
जमींदार - सुनो
वीर - हा
जमीदार - कंडोम का डिब्बा भी ले लेना 2 पेकेट और दवा भी और जल्दी आओ कार की सीट पीछे वाली पर कवर चढ़ा लेना ।
तभी फोन कट जाता है।
इधर वीर की तीनो पत्नियां हस रही थी।
वीर तीनो को एक एक बारी बारी देखता है और कहता है आज कुछ भी कर के किसी एक का तो होठ काट कर रहूंगा।
साक्षी - कब तक आओगे
वीर - 12
तनु - 12 मतलब 12.30 इससे लेट हुआ तो समझ लेना।
वीर हा कह कर निकल जाता है लेकिन वीर को कहा पता था आज उसकी जवानी पर बिजलियां गिरने वाली है आज वो आंखो से देखगा चूदाई किसको कहते है तभी तो 3 वाइफ संभाल सकेगा। इधर वीर के दिमाग मैं किस चल रही थी जो आज उसको किसी से लेना थी।
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Sory for delay ab update time to time rhenga,....ab jaldi hi romantic angel dekna ko milega..
Shandar update bhai....2
सुबह जब साक्षी की नींद खुली तो वो स्माइल करते हुए उठी और उसे फिर कल की बात याद आई तो खुद से बोल उठी
कभी मैंने ऐसी लाइफ जीने की तमन्ना की थी ऐसा पति चाहा था लेकिन अब बहुत देर हो चुकी है लेकिन इस बात की खुशी है की मैने कभी अपने पति को धोका नी दिया लेकिन sid के जाने के बाद अब जीने की इच्छा भी चली गई है वैसे भी ये कोनसा मेरे से प्यार करने लगेंगे इनका प्यार तो वो
वैसे ये हरकते ऐसी कर रहे है जैसे नई नई शादी हुई है हमारी
इतने में उसको वीर की आवाज आती है जो उसको नींद मैं बड़बड़ाता हुआ दिखा
उम्म तुम्हारा पेटू बहुत सॉफ्ट है मुलायम सा वाइफ मेरी
वही ये सुन कर साक्षी को हसी आ जाती है और हस्ते हुए वीर को देखती है जल्दी से उठ जाऊ वर्ना ऐसी हालत में देख कर पागल हो जाएंगे पहले ही अजीब अजीब हरकते कर रहा है।
और कहती है अब देर हो चुकी है कुछ दिन ऐसे रहोगे फिर वापिस वैसे हो जाओगे पहले जैसे फिर मेरी परछाई से भी नफरत होगी तुमको इसलिए अच्छा है मैं तुमसे दूर रहो तुम कुछ भी कर लो मेरा दिल में तुम्हारे लिया अब कोई सॉफ्ट फीलिंग नी है।
फिर साक्षी उठ कर अपने काम करने लगती है और तभी उसको सोफे पर एक पॉलिथीन दिखता है जब वो ओपन कर के देखती है तो उसमें एक जींस और ब्लू टॉप था
साक्षी - मैने कहा था ना वापिस उसी तरह हो जाएंगे फिर मुझे मरेंगे
साक्षी वापिस पॉलिथीन को वही रख देती है और तभी उसको कॉल आती है
साक्षी - हेलो
सामने कॉल पर - हां मेरी बेटी कैसी है
साक्षी - क्या जिंदा हूं ये काफी नी है
सामने कॉल पर - ऐसा मत बोल बेटी तू मेरी जान है हम जल्द ही आ रहा है फिर तेरा और उसका मामला सभल लेंगे
साक्षी - अब फोन रखूं मैं
सामने कॉल पर - खुशी की कोई वजह धुड़ बेटी हजारों वजह मिल जाएगी
टू टू
साक्षी ने फोन काट कर दिया अब साक्षी को किसी से भी मतलब नी था वो बस अपने मैं खोई रहती थी उसके साथ 17 साल से ऐसा व्यवहार किया जा रहा था इतना मारा जा रहा था की वो अब जीना बात करना सब भूल चुकी थी
उधर साक्षी की मां - हमने अपनी बेटी को खो दिया क्या जवाब दूंगी मैं भगवान को
तभी एक कड़क आवाज आती है कुछ दिन मैं छोटी बेटी की शादी है तब उसको यहां बुला लेंगे और समझ लेंगे।
इधर साक्षी खाना बनाने लगती है और टी बना कर वीर को उठाने जाती है और वही बैठ कर अपनी साडी सही करने लगती है
वीर - उठ कर उसको ही देखने लगते है
साक्षी- क्या है सुबह सुबह
वीर - अच्छी लग रही हो बहुत
साक्षी उठ कर चली जाती है
वीर - में तुमको जीना सिखा दूंगा देखना
इधर वीर ब्रश कर के आता है और साक्षी जो सोफे पर बैठ कर टी पी रही थी उसको फिर से देखने लगता है
तभी वीर कुछ ढूढने लगता हैं और साक्षी उसको कहती है वो रूम में है तुम्हारा पॉलिथीन
वीर जल्दी से भागता हुआ पॉलिथीन उठा कर आता है और साक्षी के पास आता है और साक्षी डर जाती है और उसकी चाय गिर पड़ती है उसके पैर पर
साक्षी - मां मां माफ कर दो मुझे अब कभी आपके समान को हाथ नी लगाउंगी मुझे मत मारना
साक्षी की आंखों से आसू आने लगता है और वो मुस्किल से ये कहती हैं
इधर वीर भी उदास हो गया और मन में सोचता है मेरी साक्षी इस कदर टूट चुकी है डर गई है वो भी वीर की वजह से अच्छा हुआ जो मर गया
तभी वीर की नजर उसके पैर पर जाती है जो बुरी तरह से जल गया था चाय की वजह से
वीर पॉलिथीन को उसके बगल रख देता है और जमीन पर बैठ जाता है
साक्षी अपनी आंखो को बंद कर देती है और कांपने लगती है और वीर जमीन पर बैठ पर अपने हाथों मैं उसके पैर ले कर सहलाता है और ठंडा पानी डाल कर साफ कर करता है
और अपने घुटनो पर रख लेता है
साक्षी अब अजीब नज़रों से देखती है तो वो वीर को उसके पैर पर देखती है और
साक्षी - क्या कर रहा हो आप मेरा पांव ठीक है
वीर - क्या ठीक है चाय गिर गई दिमाग कहा था तुम्हारा तुम मेरी वाइफ हो मेरी जान निकल जाती है तुमको दर्द मैं देख कर वैसे तुम्हारे कलर बिलकुल दूध जैसा
साक्षी को ये सब अजीब लग रहा था आज उसका ही पति उसको छेड़ रहा था उसकी केयर कर रहा था और फिर साक्षी कहती है इतना ही केयर है तो
वीर - तो क्या आगे
साक्षी -
वीर - फिर साइलेंट मोड अच्छा ठीक है मत बोलो वो ना मेरी ऑफिस में एक सेक्रेट्री है मेरी वो मुझे बता रही थी की वाइफ को मानने के लिया गिफ्ट दिया जाता है ड्रेस दी जाती है इसलिए मैंने ये ड्रेस लिया आपके लिया तुमको अच्छा नी लगा क्या साइज सही नी है क्या
साक्षी की तो चहरे की हवाइयां उड़ गई और वो खुद मैं सोचती है पहले मैं इनसे डरती थी अब ये मुझसे डरते है और जब देखो घूरते रहते है
साक्षी - नी ठीक है खाना खाओ लेट हो रहा है ऐसा कह कर वो साइड हो कर चली गई
वीर उदास हो कर बैठ जाता है और साक्षी खाने ले कर आती है
वीर - मुझे भूख नी है
साक्षी - क्या हुआ अब चोट मुझे लगी खाना तुम नी खा रहा हो
वीर - तुम मुझे डॉटती रहती हो
इतना सुन कर साक्षी को हसी तो बड़ी आती है लेकिन वो रुक कर कहती हैं मैने कब डाटा
वीर - तुमने कल कहा था तुम मुझे खाना खिलाओगे
साक्षी वीर को देख कर एक कोर खिला देती है और फिर वहा से चली जाती है
इधर साक्षी चुप चाप बनकनी मैं खड़ी थी और सोच रही थी वीर का उसको यू देखना रात को सोने बाद उसको छूने की कोशिश करना बात करना के लिया तड़पना अब उसको यू सब अच्छा सा लग रहा था
तभी वीर फिर उसके पास आता है और कहता है साक्षी सुनिए
साक्षी पता नी क्या सोचती है और बहुत जोर से चिल्ला देती है क्या है साक्षी साक्षी साक्षी साक्षी करते रहते हो हवासी कही के दिन भर मुझे घुरोगे क्यों पास आना है तुमको मेरे जब मुझसे प्यार नी है तो
वीर बिना कुछ बोले चुप चाप वहा से चला जाता है
वीर के जाने के बाद साक्षी को रियलाइज हुआ की उसने क्या किया तो वो सिर पर हाथ रख कर बैठ गई और सोचने लगी ये क्या कर दिया मैंने और मैने उसको भागा दिया और वो चला गया क्या सच में इतना बदल गया
तभी साक्षी का ध्यान जमीन पर गया जो वो देखती है की जमीन पर खाना गिरा हुआ था वीर साक्षी को बस खाना देना के लिए लाया था
वीर इधर ऑफिस निकल गया जहा से सीधा उसको ऑफिस सेकेट्री मिलती है
काव्या - गुड मॉर्निंग सर
वीर - गुड मॉर्निंग
काव्या - सर क्या हुआ मूड सही नी है आपका
वीर - वाइफ गुस्सा है मेरी
काव्या - एक काम करिए ना सर उसको हग कर लीजिए और प्यार का इज़हार करिए
वीर - ओके
उसके बाद वीर काम पर लग जाता है और फिर रात को काव्या चली जाती है और स्वाति आती है
तो देखती है वीर कुछ सोच रहा है
स्वाति - क्या सोच रहा हो
वीर - प्यार इज़हार कैसे करते है
स्वाति - पकड़ कर किस करो एक दम जबरदस्त वाली और बोल दो i love you आसान है यार अब मैं जा रही
वीर वहा से निकल कर सीधा मेडिकल की दुकान पर जाता है और कहता है कोई ऐसी क्रीम है जिससे जले हुआ दाग चला जाए
और फिर वो क्रीम ले कर वापिस आ जाता है और जैसे ही घर में आता है डोर नोक करता है।
डोर ओपन करते ही 1 लड़के उसको दक्का दे देते है जिससे वो गिर जाता है और उसका सिर पर थोड़ी चोट आ जाती है
लड़का - ये मेरी बहन को मारने के लिया था
और वीर ने को जो क्रीम और दावा वैगारा लिया था सब गिर गया और ये शोर सुन कर साक्षी के मम्मी और पापा और बहन आ जाती है और वीर को ऐसा गिरा हुआ देख कर वो कुछ नी कहती और साक्षी आगे बढ़ती उसके पहले वीर लंगड़ाते हुए चला जाता है
साक्षी dad - चलो साक्षी हम तुम दोनो का तलाक करा देंगे
और वीर कमरे में उदास बैठा हुआ था
तभी रूम में साक्षी आती है और उसके पास आ कर बैठ जाती है और अपने हाथों से उसके क्रीम उसको पकड़ा देती है और कहती है ये क्या है और ये दवा
वीर रोने लगता है और कहता है मुझे मत छोड़ो मैं मर जाऊंगा तुम्हारे बिना मैं वो वीर नी हूं मैं दूसरा वीर हूं प्लीज मुझे एक मौका दो मुझे मार दिया करो डेली पीट लेना लेकिन मुझे तलाक मत दो मैं कभी तुमको ऊंची आवाज में बात नी करूंगा कभी घूर कर तुमको नी देखूंगा ये दावा मैने तुम्हारे जले हुए निशान के लिया लाया है
वीर को ऐसा रोता देख तड़पता देख साक्षी उसका पास बैठी हुई थी
वीर - मत छोड़ो मुझे मत दो ना तलाक मैं हर वो कोशिश करूंगा एक मौका दो बोलो चुप क्यों हो
साक्षी - रोना बंद करो
वीर - मुझे मत छोड़ो
साक्षी एक तप्पड़ देती है और वीर का रोना रुक जाता है और साक्षी कुछ नी कहती और उठ कर चली जाती है
(वीर की आत्मा तो शरीर से निकल चुकी थी ये sid की आत्मा थी जिसके वजह से वीर का चहरा अब सुंदर हो गया था और वो बचपन से साक्षी के बहुत क्लोज था।)
जैसे ही साक्षी बाहर आती है सबने थप्पड़ की आवाज सुनी थी और सब गुस्सा था
अनु (साक्षी सिस्टर)- दीदी इसने आप को फिर मारा क्या
इतना मैं साक्षी उसको इग्नोर कर के चुप चाप अपने हाल से फास्ट एड का बॉक्स ले कर वीर की तरफ जाने लगती है और अपने भाई की तरफ देख कर इतना ही बोलती है मेरे पति को हाथ भी लगाया ना तो जिंदा मार दूंगी
फिर वो वीर के रूम मैं जाती है और वीर के पास बैठ कर उसके माथे पर रुई से ब्लड साफ करती है
साक्षी - रोना बंद करोगे या मैं जाऊ
वीर - नी नी
फिर वीर पूरा चुप हो जाता है और साक्षी कहती है क्या है हा
वीर - मुझे नी छोड़ोगि ना
साक्षी - नी छोड़ती बाबा अब रोना बंद करो ना
वीर - कुछ कहना था
साक्षी - हा
फिर वीर डरते हुआ कापते हाथों से उसको हग कर लेता है और उसकी कमर पर सिर रख कर जकड़ लेता है
वीर - i love you साक्षी मैं तुमसे बहुत प्यार करता हूं
साक्षी - हा ठीक है
वीर - सुनो
साक्षी - हा
वीर - हसबैंड और वाइफ वाला प्यार कैसे करते है
साक्षी - बेशर्म हटो
फिर साक्षी ने अपने घर वालो को भागा दिया और बोला कल वो आएगी गांव शादी तक रहेगी फिर चली आएगी और साथ में वीर को ले कर आएगी
साक्षी रसोई में खाना बना रही थी और वीर उसको घूर रहा था पीछे से तभी वो पलट कर कहती है क्या कर रहे हो हा घूरे जा रहे हो
वीर - वो कुछ भी तो नी
साक्षी - ओके
वीर उसके पीछे खड़ा हो जाता है और कहता है मेरा साथ मूवी देखना चलोगे सब अपनी gf के साथ जाते है तुम चलोगी मेरे साथ
साक्षी - ठीक है मैं चलूंगी कल फिर शॉपिंग कर के गांव चलन है
वीर थोड़ा घबरा जाता है
साक्षी - मेरे होते हुए तुमको कोई कुछ नी करेगा समझे
वीर - ठीक है फिर
साक्षी फिर काम करने लगती है और वीर साक्षी का पल्लू गिरा देता है और उसकी पीट पर क्रीम लगाने लगता है
साक्षी - फायदा उठा रहा हो मेरा हा
वीर - ए ए ऐसा नी है
साक्षी फिर खिलखिला कर हस पड़ती है और कहती है चल झूठे
साक्षी मन में कहती है मैं 17 साल से तड़पी हूं दर्द झेली हूं तुम देखो तुमको कितना तड़पती हूं मेरा नए नए पति तुमको पुरानी बात नी याद तो ठीक है ये हमारी न्यू शुरुवात है जिस दिन तुम पुराने वाले वीर हुए उस दिन मैं आत्म हत्या कर लुंगी
वीर - मै भी खाना बनाने में मदद करू
साक्षी - नी रहने दो दूर हटो मुझसे
फिर खाना खा कर वीर सोने के लिया बेड पर आ जाता है और साक्षी को देख कर उसकी सास ही रुक गई
साक्षी - लाइट ऑफ करो और सोते है बहुत नींद आ रही हैं
साक्षी पूरा सज कर बेड पर लेटी थी और मन में हस रही थी
इधर वीर धीरे से अपना हाथ साक्षी की कमर पर रख देता है
साक्षी - ओ मैने परमिशन दी क्या छूने की
वीर - प्लीज बस एक बार टच कर लेने दो
साक्षी - में चली जाऊंगी फिर
वीर - नी नी मैं नी टच करूंगा
साक्षी मन में कहती है कल से तुम देखो तुम्हारी ऐसी हालत कर दूंगी ना देखना
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Next updateromance se bhar pur rhega ab new shurwat ho chuki hai toh dhree dhree hi kareeb aaynge dono
Update to acha tha...Update 3
सुबह जब साक्षी की नींद खुलती है तो वो देखती है वीर एक तकिए को हग कर के लेटा हुआ है
साक्षी - हाए मेरे बंदर रात भर तड़पते रहे बस
ही ही ही ही ही
फिर वीर भी उठ जाता हैं और गुस्सा मैं साक्षी को देखता है
साक्षी की तरफ आता है
साक्षी - अरे क्या हुआ मैने क्या किया
वीर - रुको तुमको बताता हूं मैं
साक्षी उठ कर भागने लगती है , और उसके पीछे ही वीर भागता है
साक्षी - अरे सुनो तो
वीर - क्या सुनो हा
तभी साक्षी बेड के पास रुक जाती है और वीर उसके ऊपर ही गिर पड़ता है
वीर पहली बार अपनी मां के ऊपर लेटा था और उसके चूचे उसके सीने में फील हो रहे थे
और ऐसा होते ही वीर की सास बहुत तेजी से ऊपर नीचे होने लगती है और वीर को ऐसे सास लेता देख साक्षी को हसी आ जाती है
साक्षी - आराम से सास लो ही ही ही ही
वीर के हाथ पैर कांपने लगते है और वो धीरे धीरे से कापते हुए हाथों से साक्षी के गाल को छुने जाता है तभी साक्षी कहती है ओ मेरे बच्चा मुझे कुछ चुब रहा है
इतना सुन कर वीर फिर से काप जाता है और ये देख कर साक्षी कहती है चलो हटो मजा बहुत ले लिया मेरा
साक्षी फिर उसको अपने ऊपर से फेक देती है और कहती है जब देखो मेरे पीछे पीछे पड़े रहते हो बड़े आए
वीर - मैं तुमसे डरता नी समझी मेरा जो दिल करेगा वो करूंगा तुम पत्नी हो मेरी मेरा हक बनता है तुमसे प्यार करना का आ
इसके पहले वो कुछ और कहता वीर देखता है की साक्षी उसको ही घूर रही है जो लोहे की रेलिंग पर हाथ रख कर खड़ी थी
वीर जैसे ही ये नजारा देखता है उसकी गांड़ ही फट जाती है और वो कूदते हुए वापिस पीछे हो जाता है
तभी साक्षी उसकी तरफ बढ़ती है और कहती है कुछ कह रहे थे ना तुम वो मैं सुन नी पाई जरा फिर से बोलना
वीर - देखो तुम मुझे ऐसे डराया मत करो देखो मरना मत प्लीज तुम मुझे प्यार करने क्यों नी देती जब देखो दूर रहती हो सोते टाइम hug भी नी करने देती
साक्षी - अच्छा ठीक है दिन भर मुझे खुश रख कर दिखाओ अगर मैं खुश हुई तो बहुत प्यारा हग दूंगी और रात को जैसे तुम चाहो वैसे सोने दूंगी
फिर साक्षी वहा से जाने लगती है और वीर भी उसके साथ चल कर आगे आता है जैसे ही वो दूर गई वीर कहता है बड़ी आई हूं!!!
इधर साक्षी नहाने के लिया चली जाती है और वीर भी अपना काम करने लगता है स्वाति के पास कॉल कर के उसको सब समझा देता है
स्वाति - ओके सर मैं सब संभाल लुंगी आप आराम से जाइए
इधर साक्षी नहा कर के आती हैं और वीर को देखती है जो उसको घूर रहा था और उसके होठ कप रहे थे
साक्षी - यार मैं तो तुमसे बहुत परेशान हूं अब क्या हुआ है बोलो
वीर - वो वो क्या तुम जींस पहनोगे
साक्षी उसको देखती है ।
वीर - नी नी कोई बात नी मत पहनो मन नी है तो
साक्षी - पहन लेती लेकिन मेरे पास नी है और जो थी वो अब टाइट आती है
वीर - मैंने लाया है आपके लिए वो पहन लो प्लीज
साक्षी - अच्छा ठीक है अब जाओ तैयार होने दो
वीर - थैंक्यू जान
और फिर वीर वहा से निकल जाता है और थोड़े टाइम बाद साक्षी तैयार हो कर नीचे आती है जिसे देख कर ही वीर देखता रह जाता है
साक्षी - चले अब मुझे देख चुके तो
वीर - थोड़ा सा देख लो तो इतना गुस्सा
साक्षी - पड़ोसी की बीवी नी हूं तुम्हारी ही बीवी हूं मैं चलो
फिर दोनो निकल पड़ते है मॉल की तरफ
साक्षी - सुनो मेरे ससुराल कुछ भी नाटक मत करना समझे कोई कुछ भी कहे डाट तो सुन लेना चुप चाप
वीर - ही ही ही ही ही मैं सब संभाल लूंगा प्यार करता हूं तुमसे
साक्षी - शायद वहा मैं तुम्हारी मदद ना कर पाऊं तो कुछ भी कांड मत करना वहा तुम मेरा साथ चाहते हो तो मेरे घर वालो के सामने साबित कर देना की मेरे लिया कुछ भी कर सकते हो
वीर - हा ठीक है शायद मैने बीते कुछ दिनों में ऐसा कर दिया है जिससे सब मुझसे नाराज़ है ना
साक्षी - अभी का टाइम देखो पुरानी बात छोड़ो मिटी डालो उसमें
इधर ये दोनो मॉल कब आ गए पता ही नी चला और जैसे ही दोनो अंदर आए वीर ने साक्षी को बोला की हम मूवी देखेंगे आज है ना सारे कपल देखते है मूवी अब हमारी पारी हुर्रे
साक्षी - आज नी लेट हो रहा है ना जब वहा से लौट कर आएंगे तो साथ मैं देखा जाएगा और प्रोमिस एक gf और bf की तरह देखने दूंगी
वीर उदास हो कर कहता है कोई बात नी जैसे तुमको सही लगे
और साक्षी के साथ चुप चाप चलने लगता है और साक्षी उसका हाथ पकड़ लेती है और वीर अब स्माइल कर के उसके साथ चलने लगता है।
फिर दोनो एक ड्रेस की दुकान पर जाते है
सेल्स गर्ल - मेम क्या दिखाना है आपको
साक्षी - साड़ी मैरिज के लिए
साक्षी फिर वहा साड़ी पसंद करती है और वीर को कहती है तुम भी ड्रेस ले लो अपनी पसंद के जो जो तुम पसंद हो
वीर भी कपड़े ले लेता है और दोनो बिलिंग करवाते है तो सारे ड्रेस देख कर साक्षी हैरान हो जाती है
फिर साक्षी कार मैं वीर से कहती है क्या है ये सब हा
वीर - तुमने ही कहा था जो पसंद हो लेते आना
साक्षी - बहस मत करो मैने तुम्हारे लिया कहा था तुम मेरे लिए सारी ड्रेस ले आए हो क्यो
वीर - मैं इन ड्रेस में तुमको देखना चाहता हूं तो ले आया
इधर वीर और साक्षी घर आते है और तभी साक्षी के dad का फोन आ जाता है जो कहते है 5 मिनट मैं तैयार रहो आने के लिए
फिर दोनो गांव के लिया साक्षी के घर के लिए निकल जाते है जहा वीर ड्राइव कर रहा था वही साक्षी उदास बैठी थी
साक्षी मन में सोचती है काश सब ठीक हो गांव में तुम एक बार गांव से मेरे बन कर आना प्लीज सब को बता देना की तुम मेरे से कितना प्यार करते हो वो सब कर सकते हो मेरे लिए मेरे साथ पाने के लिए तुम एक न्यू वीर हो जो मेरे इतने करीब आया है
इतने में गांव आ जाता है और दोनो की कार घर के बाहर रुकती है घर पूरा शादी की तैयारी से सजा हुआ था
वही साक्षी के बाप खड़ा था बंदूक ले कर उदय भान
और इसके बगल उसका बेटा राज और हमारी तरफ दौड़ कर आती है अनु साक्षी की बहन जिसकी शादी है
और वही बहोत से और लोग थे साक्षी के चच्ची मधु और चाचा सूर्य भान
वही दूर से छत पर खड़ी थी एक औरत ये कोई और नी ये साक्षी की बुआ राखी है और उनके पीछे एक लड़की खड़ी वीर को घूर रही थी तनु
और बहुत से गेस्ट और साक्षी के भाई राज के ससुराल वाले दोस्त लोग भी आए थे वो गांव में घूमने निकलते थे
तभी हमारे पास साक्षी की बहन अनु आती है
अनु - दी दी दी आप आ गई ही ही अब दोनो बहने मस्ती करेंगे खूब सारी
तभी राज और उदय भान आते है
और चिल्लाते हुए कहते है रुको
राज - दी आप अंदर जाइए और वीर को यही छोड़ दीजिए
साक्षी - में अपने पति को छोड़कर नी जा सकती
उदय भान - ये यह से जिंदा नी जाएगा समझी तू
राज - अनु तू अंदर जा इसने मेरी दी को दर्द दिया रुलाया इतनी बेदर्दी से मारा
साक्षी - अब हमारी लाइफ अच्छी चल रही है तो क्यों आप मेरी जिंदगी खराब करना चाहते है
उदय भान - ठीक है दिया एक मौका इसको यही कच्चे घर गरमी में रहना पड़ेगा जमीन मैं एक टाइम का खाना खाने पड़ेगा और शादी तक ये कर सका तो मैं दोनो को अलग नी करूंगा कभी एक नौकर बन कर रहना पड़ेगा बोल
साक्षी - क्या बकवास है नौकर सब के सामने
राज - हा नौकर शादी तक शादी बाद हम तुमको परमिशन दे देंगे इसने तुझे 15 साल नौकर बना कर रखा आज तू 33 साल कि है अब इसे भी नौकर बन कर रहना होगा जितना दर्द तुझे दिया गया इसे सहना होगा तूने ही ये मदद मागी थी ना
साक्षी अपने बाप को कुछ नी कह सकती थी क्योंकि वीर ने उसके साथ ऐसी ऐसी हरकते की थी जो अब उसके नए पति sid को चुकानी पड़ेगी
साक्षी मन मैं सोचती है एक बार यह से निकल चले वीर वादा रहा तुमको तुम्हारी साक्षी बहोट प्यार देगी वही ये सब सुन कर साक्षी समझ गई की ये वीर नौकर बनाना बरदाश नी करेगा वो भी सभी के सामने
तभी वीर कहता है मुझे मंजूर है मैं साक्षी का पति हूं और ये साबित कर के रहूंगा की उसके लिए मुझसे अच्छा कोई ni रहेगा और मैं साक्षी को अपने साथ वापिस ले जाऊंगा
उदय भान - ये तो 15 दिन बताएगा समान उठा और घर के बाहर बने तबले मैं जा कर सामान रख और काम शुरू कर महमान आने वाले है याद रहे ये 15 दिन तू नौकर है
अनु - चलो दीदी कपड़े दिखाती हूं और राज की वाइफ भाभी से भी मिलवाती हूं सब आएं है यहा
राज वीर को ताबेला देखा देता है जहा पर गाय और भेस बंधी थी
वीर अंदर जाता है तो देखता है अंदर बस बदबू है लेकिन एक कोने थोड़ी सी साफ जगह है वहा बदबू नी है
वीर अपना सामान वहीं रख देता है और शाम तो हो ही गई थी तभी साक्षी के बाप की आवाज आती है मर गया क्या ताबेल मैं सामना कोन रखेगा तेरा बाप कार से सामन निकाल
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हा थोड़ी problem thi guysisliya late update aya waise ab chances hai har dusre din update aayge is story.....7 ke 7 din update ayga.... Yaa toh is par yaa toh jin waali par umid hai syd dono par aaya....
Aur rhi baat story ki toh veer ko bahot kuch face krna pdega sakshi ka sath pane ke liye ..... To stay tunnned aur aaj bhi update aayga ab se daily aaayaga
Update to acha tha...Update 3
सुबह जब साक्षी की नींद खुलती है तो वो देखती है वीर एक तकिए को हग कर के लेटा हुआ है
साक्षी - हाए मेरे बंदर रात भर तड़पते रहे बस
ही ही ही ही ही
फिर वीर भी उठ जाता हैं और गुस्सा मैं साक्षी को देखता है
साक्षी की तरफ आता है
साक्षी - अरे क्या हुआ मैने क्या किया
वीर - रुको तुमको बताता हूं मैं
साक्षी उठ कर भागने लगती है , और उसके पीछे ही वीर भागता है
साक्षी - अरे सुनो तो
वीर - क्या सुनो हा
तभी साक्षी बेड के पास रुक जाती है और वीर उसके ऊपर ही गिर पड़ता है
वीर पहली बार अपनी मां के ऊपर लेटा था और उसके चूचे उसके सीने में फील हो रहे थे
और ऐसा होते ही वीर की सास बहुत तेजी से ऊपर नीचे होने लगती है और वीर को ऐसे सास लेता देख साक्षी को हसी आ जाती है
साक्षी - आराम से सास लो ही ही ही ही
वीर के हाथ पैर कांपने लगते है और वो धीरे धीरे से कापते हुए हाथों से साक्षी के गाल को छुने जाता है तभी साक्षी कहती है ओ मेरे बच्चा मुझे कुछ चुब रहा है
इतना सुन कर वीर फिर से काप जाता है और ये देख कर साक्षी कहती है चलो हटो मजा बहुत ले लिया मेरा
साक्षी फिर उसको अपने ऊपर से फेक देती है और कहती है जब देखो मेरे पीछे पीछे पड़े रहते हो बड़े आए
वीर - मैं तुमसे डरता नी समझी मेरा जो दिल करेगा वो करूंगा तुम पत्नी हो मेरी मेरा हक बनता है तुमसे प्यार करना का आ
इसके पहले वो कुछ और कहता वीर देखता है की साक्षी उसको ही घूर रही है जो लोहे की रेलिंग पर हाथ रख कर खड़ी थी
वीर जैसे ही ये नजारा देखता है उसकी गांड़ ही फट जाती है और वो कूदते हुए वापिस पीछे हो जाता है
तभी साक्षी उसकी तरफ बढ़ती है और कहती है कुछ कह रहे थे ना तुम वो मैं सुन नी पाई जरा फिर से बोलना
वीर - देखो तुम मुझे ऐसे डराया मत करो देखो मरना मत प्लीज तुम मुझे प्यार करने क्यों नी देती जब देखो दूर रहती हो सोते टाइम hug भी नी करने देती
साक्षी - अच्छा ठीक है दिन भर मुझे खुश रख कर दिखाओ अगर मैं खुश हुई तो बहुत प्यारा हग दूंगी और रात को जैसे तुम चाहो वैसे सोने दूंगी
फिर साक्षी वहा से जाने लगती है और वीर भी उसके साथ चल कर आगे आता है जैसे ही वो दूर गई वीर कहता है बड़ी आई हूं!!!
इधर साक्षी नहाने के लिया चली जाती है और वीर भी अपना काम करने लगता है स्वाति के पास कॉल कर के उसको सब समझा देता है
स्वाति - ओके सर मैं सब संभाल लुंगी आप आराम से जाइए
इधर साक्षी नहा कर के आती हैं और वीर को देखती है जो उसको घूर रहा था और उसके होठ कप रहे थे
साक्षी - यार मैं तो तुमसे बहुत परेशान हूं अब क्या हुआ है बोलो
वीर - वो वो क्या तुम जींस पहनोगे
साक्षी उसको देखती है ।
वीर - नी नी कोई बात नी मत पहनो मन नी है तो
साक्षी - पहन लेती लेकिन मेरे पास नी है और जो थी वो अब टाइट आती है
वीर - मैंने लाया है आपके लिए वो पहन लो प्लीज
साक्षी - अच्छा ठीक है अब जाओ तैयार होने दो
वीर - थैंक्यू जान
और फिर वीर वहा से निकल जाता है और थोड़े टाइम बाद साक्षी तैयार हो कर नीचे आती है जिसे देख कर ही वीर देखता रह जाता है
साक्षी - चले अब मुझे देख चुके तो
वीर - थोड़ा सा देख लो तो इतना गुस्सा
साक्षी - पड़ोसी की बीवी नी हूं तुम्हारी ही बीवी हूं मैं चलो
फिर दोनो निकल पड़ते है मॉल की तरफ
साक्षी - सुनो मेरे ससुराल कुछ भी नाटक मत करना समझे कोई कुछ भी कहे डाट तो सुन लेना चुप चाप
वीर - ही ही ही ही ही मैं सब संभाल लूंगा प्यार करता हूं तुमसे
साक्षी - शायद वहा मैं तुम्हारी मदद ना कर पाऊं तो कुछ भी कांड मत करना वहा तुम मेरा साथ चाहते हो तो मेरे घर वालो के सामने साबित कर देना की मेरे लिया कुछ भी कर सकते हो
वीर - हा ठीक है शायद मैने बीते कुछ दिनों में ऐसा कर दिया है जिससे सब मुझसे नाराज़ है ना
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साक्षी - आज नी लेट हो रहा है ना जब वहा से लौट कर आएंगे तो साथ मैं देखा जाएगा और प्रोमिस एक gf और bf की तरह देखने दूंगी
वीर उदास हो कर कहता है कोई बात नी जैसे तुमको सही लगे
और साक्षी के साथ चुप चाप चलने लगता है और साक्षी उसका हाथ पकड़ लेती है और वीर अब स्माइल कर के उसके साथ चलने लगता है।
फिर दोनो एक ड्रेस की दुकान पर जाते है
सेल्स गर्ल - मेम क्या दिखाना है आपको
साक्षी - साड़ी मैरिज के लिए
साक्षी फिर वहा साड़ी पसंद करती है और वीर को कहती है तुम भी ड्रेस ले लो अपनी पसंद के जो जो तुम पसंद हो
वीर भी कपड़े ले लेता है और दोनो बिलिंग करवाते है तो सारे ड्रेस देख कर साक्षी हैरान हो जाती है
फिर साक्षी कार मैं वीर से कहती है क्या है ये सब हा
वीर - तुमने ही कहा था जो पसंद हो लेते आना
साक्षी - बहस मत करो मैने तुम्हारे लिया कहा था तुम मेरे लिए सारी ड्रेस ले आए हो क्यो
वीर - मैं इन ड्रेस में तुमको देखना चाहता हूं तो ले आया
इधर वीर और साक्षी घर आते है और तभी साक्षी के dad का फोन आ जाता है जो कहते है 5 मिनट मैं तैयार रहो आने के लिए
फिर दोनो गांव के लिया साक्षी के घर के लिए निकल जाते है जहा वीर ड्राइव कर रहा था वही साक्षी उदास बैठी थी
साक्षी मन में सोचती है काश सब ठीक हो गांव में तुम एक बार गांव से मेरे बन कर आना प्लीज सब को बता देना की तुम मेरे से कितना प्यार करते हो वो सब कर सकते हो मेरे लिए मेरे साथ पाने के लिए तुम एक न्यू वीर हो जो मेरे इतने करीब आया है
इतने में गांव आ जाता है और दोनो की कार घर के बाहर रुकती है घर पूरा शादी की तैयारी से सजा हुआ था
वही साक्षी के बाप खड़ा था बंदूक ले कर उदय भान
और इसके बगल उसका बेटा राज और हमारी तरफ दौड़ कर आती है अनु साक्षी की बहन जिसकी शादी है
और वही बहोत से और लोग थे साक्षी के चच्ची मधु और चाचा सूर्य भान
वही दूर से छत पर खड़ी थी एक औरत ये कोई और नी ये साक्षी की बुआ राखी है और उनके पीछे एक लड़की खड़ी वीर को घूर रही थी तनु
और बहुत से गेस्ट और साक्षी के भाई राज के ससुराल वाले दोस्त लोग भी आए थे वो गांव में घूमने निकलते थे
तभी हमारे पास साक्षी की बहन अनु आती है
अनु - दी दी दी आप आ गई ही ही अब दोनो बहने मस्ती करेंगे खूब सारी
तभी राज और उदय भान आते है
और चिल्लाते हुए कहते है रुको
राज - दी आप अंदर जाइए और वीर को यही छोड़ दीजिए
साक्षी - में अपने पति को छोड़कर नी जा सकती
उदय भान - ये यह से जिंदा नी जाएगा समझी तू
राज - अनु तू अंदर जा इसने मेरी दी को दर्द दिया रुलाया इतनी बेदर्दी से मारा
साक्षी - अब हमारी लाइफ अच्छी चल रही है तो क्यों आप मेरी जिंदगी खराब करना चाहते है
उदय भान - ठीक है दिया एक मौका इसको यही कच्चे घर गरमी में रहना पड़ेगा जमीन मैं एक टाइम का खाना खाने पड़ेगा और शादी तक ये कर सका तो मैं दोनो को अलग नी करूंगा कभी एक नौकर बन कर रहना पड़ेगा बोल
साक्षी - क्या बकवास है नौकर सब के सामने
राज - हा नौकर शादी तक शादी बाद हम तुमको परमिशन दे देंगे इसने तुझे 15 साल नौकर बना कर रखा आज तू 33 साल कि है अब इसे भी नौकर बन कर रहना होगा जितना दर्द तुझे दिया गया इसे सहना होगा तूने ही ये मदद मागी थी ना
साक्षी अपने बाप को कुछ नी कह सकती थी क्योंकि वीर ने उसके साथ ऐसी ऐसी हरकते की थी जो अब उसके नए पति sid को चुकानी पड़ेगी
साक्षी मन मैं सोचती है एक बार यह से निकल चले वीर वादा रहा तुमको तुम्हारी साक्षी बहोट प्यार देगी वही ये सब सुन कर साक्षी समझ गई की ये वीर नौकर बनाना बरदाश नी करेगा वो भी सभी के सामने
तभी वीर कहता है मुझे मंजूर है मैं साक्षी का पति हूं और ये साबित कर के रहूंगा की उसके लिए मुझसे अच्छा कोई ni रहेगा और मैं साक्षी को अपने साथ वापिस ले जाऊंगा
उदय भान - ये तो 15 दिन बताएगा समान उठा और घर के बाहर बने तबले मैं जा कर सामान रख और काम शुरू कर महमान आने वाले है याद रहे ये 15 दिन तू नौकर है
अनु - चलो दीदी कपड़े दिखाती हूं और राज की वाइफ भाभी से भी मिलवाती हूं सब आएं है यहा
राज वीर को ताबेला देखा देता है जहा पर गाय और भेस बंधी थी
वीर अंदर जाता है तो देखता है अंदर बस बदबू है लेकिन एक कोने थोड़ी सी साफ जगह है वहा बदबू नी है
वीर अपना सामान वहीं रख देता है और शाम तो हो ही गई थी तभी साक्षी के बाप की आवाज आती है मर गया क्या ताबेल मैं सामना कोन रखेगा तेरा बाप कार से सामन निकाल
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हा थोड़ी problem thi guysisliya late update aya waise ab chances hai har dusre din update aayge is story.....7 ke 7 din update ayga.... Yaa toh is par yaa toh jin waali par umid hai syd dono par aaya....
Aur rhi baat story ki toh veer ko bahot kuch face krna pdega sakshi ka sath pane ke liye ..... To stay tunnned aur aaj bhi update aayga ab se daily aaayaga
शानदार bohot hi badiya update bhai...Update 4
जैसे ही वीर ताबेले मैं आया वैसे ही उसको आवाज आती है।
"मर गया क्या अरे घर का काम भी करना है और साक्षी के कपड़े निकाल कर कोन लाएगा तेरा बाप" ये आवाज थी साक्षी के बाप उदय भान की
वीर ये सुन कर चुप चाप बाहर आता है और सीधा बाहर जा कर कार में से कपड़े निकला कर सीधा घर में चला जाता है और उसको देख कर अनु कहती है पापी की कही का।
वीर उसको कुछ भी नही कहता और सीधा कपड़े रखने के लिए अंदर जाने लगता है तभी राज उसको टोकता है और कहता है नौकरों को घर में आने की परमिशन कब से होने लगी और उसको धक्का दे देता है जिससे वीर थोड़ा पीछे गिर जाता है
फिर वीर शांति से वहा से उठ कर चला जाता है और बाहर आते ही सूर्य भान साक्षी के चाचा उसको कहते है चल मेरे साथ थोड़ा आटा की दुकान दिखा दूं वहा से आटा ले आ कर रसोई में रख दो
फिर चाचा उसको 2 km दूर पैदल ले गया और वीर से 15 राउंड लगवाया और वीर जब ये काम कर के घर आया तो उसकी हालत खराब हो चुकी थी।
वही ये सब दूर बैठी साक्षी देख रही थी और वो और कुछ रिएक्ट कर पाती तभी अनु उसके पास आ कर कहती है
क्या दीदी मेरी शादी है और आप मेरा साथ के बजाए अकेले बैठे हो चलो आपको भाभी से मिलवाती हूं राज की होने वाली वाइफ
साक्षी - आज नी मैं थक गई हूं कल चलेंगे सुबह से
तभी उसको उसकी चाची की आवाज आती है अरे मेरी बेटी जब से आई है तब से कुछ खाई भी नही कम से कम उसको कुछ खिला तो दे।
अनु - मैं भी कितनी बेवकूफ हूं रुको अभी लाती हूं
इधर अनु खाना ले कर आती है लेकिन साक्षी खाना का बहाना बना कर मना कर देती है और घर के कामों में लग जाती है और अनु उसके पीछे पीछे लगी हुई थी
इधर वीर के कपड़े पूरा गंदे हो गया और तभी राज के दोस्त घर में आते है और वीर से टकरा जाते है और उनमें से एक कहता है गुस्सा कर " क्या बे दिखता नी क्या चल है साइड और जा कर चाय ला"
तभी एक लडका कहता है पागल है क्या तू ऐसे बात नी करते।
लड़का कहता है अबे रोहित ये वीर है राज ने बताया था ना घर में काम करने के लिया नौकर आएगा आज वही होगा ये अब जा
और वीर चुप चाप वहा से चला गया सुनता हुआ
वही सुबह से वीर ने कुछ खाया नहीं था उसको प्यास बहुत जोर की लगी थी वो डरते हुआ कहता है क्या पानी देंगी चाची बहुत प्यास लगी है
चाची - तूने काम तो कुछ किया नी बड़ा आया प्यास लगी है निकमा कही का
लड़का - अबे चाय ला रहा है या मुरा गया बे
राज ,- क्या यार तुम लोग भी ना
वीर - चाय ले आ कर देता है
यही सब हो रहा था ऐसे ही जिल्लत सहते सहते रात हो गई और वीर चुपके से बाहर आ कर साक्षी को देख ने लगता है लेकिन वो उसको नी दिख रही थी
तभी उदयभान उसको बाहर से लकड़ी लाने को बोलता है और कहता है जा कर लकड़ी ला और पानी भर कर छत पर दावार दो वही पर राज के दोस्त सोएंगे
तभी वीर वहा से चला जाता है और शांति से लकड़ी उठाने लगता है तभी उसको आवाज सुनाई पड़ती है
रोहित - अबे तूने उसको देखा उस साड़ी वाली भाभी को क्या लग रही थी बे कसम से बड़ा कसा हुआ माल है यार अजय
वीर इसका नाम अजय है गमंडी साला
तभी अजय कहता है - " हा यार बहुत कसा हुआ है अबे वो साक्षी है राज की बहन बहुत कसा हुआ माल है टाइट सी लोड़ा पूरा खड़ा कर देती है
इतना सुन कर वीर का खून खोल जाता है और उन दोनो की तरफ आगे बढ़ता है तभी उसको याद आता है
साक्षी ने उससे कहा था कुछ भी उल्टा सीधा मत करना
वीर लकड़ी ले कर रसोई में दे देता है और कहता है ये लीजिए
इतना सुन कर अनु कहती है ठीक है रखो और जाओ
वीर वहा से छत पर निकल जाता है और पानी डालने लगता है तभी वो देखता है साक्षी और अजय बात कर रहा थे।
अजय - आप ऐसे अकेला मत रहा करिए लड़कियां अकेला अच्छी नी लगती
साक्षी कोई रिस्पांस नी देती और चुप चाप वीर को देखती है जो सफाई करते हुए चुपके से साक्षी को देख रहा था तभी उसकी नज़र साक्षी पर पड़ जाती है और साक्षी उसको देख लेती है और वो समझ जाती है की वीर को जलन हो रही है तभी वो कहती है हा सही कहा इसलिए तो तुम्हारे पास बैठी हूं
इतना सुन कर वीर अपना उदास हो कर काम करने लगता है और वो दोनो बहुत बात करने लगता है और फिर वीर वहा से जाने लगता है।
तभी उसकी आंखो मैं आसू देख कर साक्षी भी उदास हो जाती है और साक्षी को उदास देख कर अजय बोलता है क्या हुआ सब ठीक है?
तब तक वीर चला गया था और साक्षी खड़ी हस रही थी बच्चू तड़पो जरा मेरे लिए
तभी साक्षी के पास अजय आ कर खड़ा हो जाता है
साक्षी कहती है अपनी हद क्रॉस करने की कोशिश करोगे तो हाल मौत से भी बुरा होगा समझे
इधर वीर को रात का खाना नसीब होता है तो वो खुशी से उछल पड़ता है कब से भूख लगी थी उसको और अब वो खाना मुंह में डाला तो तड़प उठा 2 रोटी और नमक और पानी लेकिन वीर के लिया इतना ही काफी था।
इसी तरफ कई दिन गुजर जाते है और वीर साक्षी और अजय को करीब आता और बात करता देखता और उन दोनो को बात करता देख सभी हस्ते खुश होते
एक दिन रात का टाइम था और वीर पूरे घर का काम कर के थक गया था तभी उसकी नज़र उसकी वाइफ पर पड़ती है साक्षी जो किनारे खड़ी हो कर हस रही थी और अनु से बात कर रही थी और आपने बाल को स्वार रही थी
वीर जब नही रह पाया तो वो साक्षी को पीछे से उसकी पीठ को छू लेता है जो धूद जैसी गोरी थी और इतना देख कर अजय पूरा गुस्सा हो जाता है और वीर को दक्का दे कर मारने लगता है
अजय - मेडरचो द तूने उसको हाथ भी कैसे लगाया तेरी इतनी औकात हो गई मदर चोद
अजय वीर पर लात और गुस्सा बरसाए जा रहा था और वीर चुप चाप जमीन पर लेता मार खा रहा था
साक्षी ये देख कर अजीब नज़रों से सब देख रही थी तभी सब आ कर मेहमान और राज सब वीर को बचते है
रोहित - माफी मांग
वीर - माफ कर दीजिए गा मेम साब सर माफ कर दीजिए
अजय फिर आगे बड़ता है तभी साक्षी उसको पकड़ लेती है और कहती है बस करो अब
और वीर चुप चाप तबेला मैं जा कर लेट जाता है जमीन मैं
और वीर के पास आज अनु खाना ले कर आती है और कहती है क्यों ये सब कर रहे हो वापिस शहर चले जाओ
और चली जाती है और इधर सब अजय को समझा रहे थे और तभी साक्षी बिलकुल चुप चाप बस बैठी हुई थी और आज उसके सामने उसके प्यार को मारा गया और वो चुप चाप बस बेबस और लाचार हो कर देख रही थी
तभी राखी और तनु आती है नीचे उनको देख कर सब की आंख बड़ी हो जाती है और तनु सीधे भागते हुए वीर की तरफ चली जाती है
उदय भान - होश में हो तनु कहा जा रही हो
तनु - अपने पति के पास और अगर किसी मैं हिम्मत है तो रोक के दिखाओ
इतना कह कर तनु वीर के तबेले में झांकती है जो बहुत प्यार से देख रही थी उसकी आंखो मैं जो था वो बस दर्द था
और वो देखती है की वीर दर्द से कहार रहा है
वीर देखता है की एक औरत उसको घूर रही है जो लगभग साक्षी के हम उमर ही थी वो वीर के पास आती है
और उसके हाथों को थाम कर चोट पर दवा लगाने लगती है
वीर - तुम कोन हो
तनु - तुम्हारी पत्नी जिसको तुमने कभी अपना नही समझा मैं बस तुम्हारी मदद करने आई हूं फिर चली जाऊंगी
वीर - तुम मेरी हो
तनु उसको घूर कर देखती है फिर इग्नोर कर के खाना ले कर चली जाती है
और तनु उसको गुस्सा मैं कहती है अपनी सकल भी मुझे मत दिखाना और गुस्सा मैं चली जाती है
और वो सीधा खाना साक्षी की तरफ फेक कर कहती है ये देख क्या खिलाया जा रहा अब तो कुछ शर्म कर ले उसकी गलती क्या थी की नही रह पाया तुम्हारे बिना
वही ये सब वीर देख रहा था
इतने में अजय कहता है तुम होती कोन हो ये बोलने वाली
इतना मैं तनु उसको इतना जोर से थापड़ मरती है की उसका मुंह हिल जाता है सुन बे लोडू चांद अगर साक्षी के पास भी दिखा ना तू अब तो जनाजा जवानी में उठा दूंगी समझा
अजय की गांड़ फट गई ये देख कर और वो साक्षी का हाथ पकड़ लिया
इतना मैं साक्षी उसको एक और जोरदार थप्पड़ दे देती है जो इस बात का सबूत था की साक्षी वीर की वाइफ है
तनु- डायन इतना ही है तो पहले स्टैंड लेती ना तब तो गांड़ में दम नहीं था तुम्हारे
साक्षी - तू क्यों नही आई फिर बचाने मैं तो डरती हूं तू बचा लेती ना तुझे तो सकल देखनी भी नी पसंद थी ना भोसड़ा चोदी
वही वीर इतनी सारी गालिया सुन कर डर रहा था बहुत ज्यादा उसकी गांड़ फटी पड़ी थी उसको ये तो कन्फर्म था की तनु के साथ भी कोई कांड उसके बाप ने किया है लेकीन तभी उसकी नज़र दोनो पत्नियों की गांड़ पर पड़ती है दोनो एकदम कसे हुए माल था ऊपर से भाभियों वाली उमर मैं थी दोनो
तभी अनु ये देख लेती है और उसको लड़ाई चुप कराने का आइडिया दिमाग में आया और वो दोनो के बीच आती है और कहती है
"तनु दीदी और साक्षी दीदी आप दोनो लड़ाई छोड़ जरा कही और भी तो देखिए "
जैसे ही तनु और साक्षी ने वीर की नजर का पीछा किया तो पाया वो उनकी गांड़ घूर रहा है
तो दोनो का खून जल जाता है
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To be continued.....jaisa ki update main pad liya tanu aur sakshi Dono wife hai lekin ek cheez aur dono nafrat krti hai veer seaur abhi last main veer ne jo harkat ki uski wagah se wo abhi bhi pitne waala hai.....and yarr ye copy paste story ni hai guyss toh update likne main time lagta hai.... keep supporting aur like pel dena.... Aur next update main flashback story chalegii dono shaadiyon ki.... Reply time milte hi dunga sab ko subah...
Ek update aur lik liya hai but wo saam tk dunga