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Adultery फैंटेसी या षडयंत्र

नाजिम को कैसे अपनी बीवी से बदला लेना चाहिए ?

  • मारपीट करनी चाहिए।

  • उसे तलाक देना चाहिए

  • किसी दूसरे ताकतवर से उसे चुदवाना चाहिए ?

  • नाजिम और किसी दूसरे मर्द दोनो को मिलकर चोदना चाहिए ?

  • दो अलग मर्दों से एक साथ चुदवाना चाहिए और तड़पते देख कर मजे करना चाहिए?

  • क्या देसी दवाई खाकर अपना स्टेमिना बढ़ाना कर बीवी को खुश करना चाहिए ?


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आप सभी का दिल से धन्यवाद। आजकल एक्सफोर्म पर लेखक ऐसी कहानियां लिख रहे हैं जिनमे पति अपनी पत्नी को दूसरे मर्द से सेक्स के लिए उकसाता हैं और मेरा अपना मानना हैं कि इसके पीछे लेखक का उद्देश्य ये हो सकता है कि शायद कुछ लोग प्रभावित होकर उसने अपनी खुद की पत्नी को सेक्स के लिए बोल सकते हैं। शुरू में कुछ लोगो ने मेरी कहानी को लेकर अपनी नाराजगी जाहिर करी लेकिन मैंने इसे पूरी करने का फैसला किया क्योंकि ये कहानी ऐसे लोगो के लिए एक सबक होगी कि कैसे लोग फैंटसी के चक्कर में अपना सब कुछ बरबाद कर सकते है और उनकी हालत अंत में ऐसी हो सकती हैं अर्ज किया हैं:"

" बांध लिया हैं मैने अपना सामान गालिब

अब बता कहां रहते हैं वो लोग जो कहीं के नही रहते।
 

Unique star

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साहिल के जाने के करीब आधे घंटे बाद मैं घर आया और साजिया ने स्माइल के साथ मेरा फिर से स्वागत किया। मैं थोड़ी आराम से बैठा हुआ टीवी देखता रहा और साजिया मेरे लिए चाय लेकर आ गई।

नासिर ने चाय का कप लिया और बोला:" आज शाम को खाने का क्या करना हैं ? कहीं बाहर चले क्या ?

साजिया:" जैसी आपकी मर्जी, रोज खाना ही तो बनाती हु। आज थोड़ा आराम भी मिल जायेगा।

नासिर:" अच्छा फिर आज शाम बाहर ही खायेंगे। यार मैं आज बिलाल भाई से मिला था और कुछ सामान लेना हैं मुझे उनसे, मुझे पांच लाख रुपए चाहिए जो मैने पिछले साल तुम्हे दिए थे।

साजिया मेरी बात सुनकर कांप सी गई और उसके माथे पर पसीना साफ छलक उठा और बोली:"

" अच्छा हान तुमने दिए तो थे। लेकिन बीच बीच में खर्च होते रहे और कुछ मैंने गरीबों के लिए कंबल खरीद लिए थे। अभी देखती हूं कितने बचे हैं।

इतना कहकर साजिया अंदर चली गई और मैं हैरानी से देखता रहा कि कितनी आसानी से वो मुझसे झूठ बोलके चली गई। मुझे समझ नही आ रहा था कि किस तरह उससे कहूं कि दो लाख रुपए तुमने साहिल को दे दिए हैं। मैं सब कुछ जानता था और मेरे पास साजिया की साहिल को पैसे देते हुए वीडियो भी थी लेकिन मैं नही चाहता था कि अभी साजिया को घर में लगे हुए कैमरे का पता चले इसलिए खामोश रहना ही बेहतर समझा।

थोड़ी देर के बाद साजिया आई और उसके हाथ में कुछ रुपए थे और मेरी तरफ देती हुई बोली:"

" लो ये ही बचे हैं बस। गिनती करके देखो एक बार कितने हैं

मैं जानता था कि साजिया एक भी रुपया कभी खर्च नही करती और ये पक्का तीन लाख ही बचे होंगे लेकिन फिर भी दिखावे के लिए गिनने लगा। मैं नोट गिन रहा था और साजिया चेहरे पर परेशानी के भाव लिए हुए मुझे देख रही थी। जैसे ही मैने गिनती पूरी करी तो साजिया से बोला:"

" अरे ये तो सिर्फ तीन लाख ही बच गए हैं। बड़ा खर्च कर दिया तुमने इस बार।

साजिया हल्का सा घबरा गई और फिर भाव दिखाते हुए बोली:"

" अब मैंने किसी की मदद ही करी है। आखिर अपना इतना किसके लिए कमाते हो।

नासिर" मदद करना अच्छी बात हैं लेकिन आगे से इतनी ज्यादा किसी की मदद करने से पहले मुझसे पूछ लेना क्योंकि बुरे वक्त में कोई साथ नहीं देता।

मैंने लगभग बात को खत्म करते हुए कहा और साजिया को भी ये सही मौका लगा और मुझसे लिपट गई और मेरा गाल चूम कर बोली:"

" आप बेफिक्र रहिए। आगे से मैं बिना आपकी मर्जी के कोई काम नही करूंगी।

नासिर ने भी बात को खत्म किया और साजिया को एक स्माइल देकर अपने कमरे में चला गया और पैसों को अपनी अलमारी में रख कर लॉक लगा दिया। नासिर ने अपनी एक नजर कैमरे पर डाली और सुकून की सांस ली कि आज कैमरे की मदद से उसके तीन लाख रुपए बच गए नही तो साजिया साहिल को ये तीन लाख देने से भी पीछे नहीं हटती।

शाम हो गई थी तो मैं बाहर हॉल में आया तो देखा कि साजिया पूरी तरह से तैयार हो गई थी और उसने एक बेहद की कसी हुई ड्रेस पहन रखी थी जिसमे उसके बड़े बड़े गोल गोल कठोर बूब्स पूरी तरह से कस कर बाहर की तरफ निकले हुए थे। पूरी तरह से कयामत, मैं सोच भी नही सकता था कि साजिया इतने कसे हुए और मॉडर्न कपड़े भी पहन सकती है। साजिया पूरी तरह से तैयार थी और अपनी एक सेल्फी लेने लगी।


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मैं समझ रहा था कि साजिया को ऐसे कपड़ो में देखकर लोग पागल हो जाएंगे और हो सकता हैं कि घर वापिस आने तक ये कोई नया आशिक और न बना ले। मैं तो पहले ही एक से परेशान था और बिलकुल नहीं चाहता था कि फिर से कोई नही मुसीबत खड़ी हो इसलिए थोड़ा हिम्मत करके बोला:"

" साजिया वैसे तुम इन कपड़ो में लग तो अच्छी रही हो लेकिन तुम्हे नही लगता क्या कि ये कपड़े कुछ ज्यादा ही फंस गए हैं तुम्हारे शरीर पर आज।

साजिया ने मुझे गौर से देखा और फिर एक स्माइल देते हुए बोली:"

" आप भी ना पहले तो मुझे खुद ऐसे कपड़े पहनने के लिए बोलते थे और अब पहन रही हु तो तुम्हे उसमे भी दिक्कत है। आखिर तुम चाहते क्या हो ?

साजिया का लहजा थोड़ा कड़वा हो गया और आज वो पहली बार आप से तुम पर उतर आई थी। मैने हिम्मत करके कहा:*

" मैं तो कुछ नही चाहता। बस ये ही कह रहा था कि ये कपड़े क्या सही रहेंगे ?

साजिया का मूड खराब हो गया और गुस्से से बोली:"

" तुम ना पता नहीं कैसे हो गए हो हुए हो ? रुको मैं एक काम करती हु कि ये कपड़े ही उतार देती हु।

इतना कहकर वो अपना त्रिया दिखाते हुए अंदर जाने लगी तो मैने उसे रोक दिया क्योंकि मैं उसे नाराज नहीं करना चाहता था और बोला:"

" प्लीज यार, ऐसे गुस्सा मत करो। अच्छे लग रहे हैं कपड़े। बस अब चलते हैं।

मेरे एक बार बोलने की देर थी और साजिया बिलकुल शांत हो गई लेकिन फिर भी मुझ पर दबाव बनाते हुए बोली:"

" इस बार मान जाती हु। आगे से ज्यादा रोक टोक करी तो मुझसे बुरा कोई नही होगा।

मैं क्या बोलता।

इतना कहकर वो बाहर निकल गई और मैं भी उसके साथ ही आ गया और हम दोनो शहर में किसी अच्छे बड़े होटल की तरफ चल पड़े। रास्ते में साजिया चुप ही रही और जैसे ही हम गाड़ी से बाहर निकले तो उसकी चूचियां फिर से तन गई। साजिया ने मेरी तरफ देखा और एक पतला सा स्टॉल अपने सीने पर डाल दिया और बोली:"

" देखो अब सब ठीक हैं ना।

मैने साजिया की तरफ देखा और राहत की सांस ली क्योंकि अब पहले के मुकाबले उसकी चूचियां काफ़ी हद तक ढक गई थी। मैने साजिया को एक स्माइल दी और
जल्दी ही हम एक बड़े मॉल के बाहर खड़े हुए थे जहां का खाना सबसे ज्यादा मशहूर था। हम अंदर आ गए और साजिया ने अपने मोबाइल से एक नम्बर मिलाया और बोली:"

" साहिल हम आज मॉडर्न मॉल में आ गए हैं। तुम एक काम करना यहीं उतर जाना, घर पर कोई नही होगा।

मैं समझ गया कि इसने साहिल को फोन किया है। इसका मतलब इसके पास उसका नंबर भी आ गया। मुझे अगले ही पल अपनी सोच पर हंसी आ गई कि साजिया जिससे पिछले दो दिन से जी भरकर चुद रही हैं भला उसका इसके पास नही तो और किसके पास होगा।

खैर हम अंदर चले गए और मैंने स्टार्टर के लिए एक छोटा सा ऑर्डर दिया। साहिल भी आ गया तो उसे देखते ही साजिया फूल सी खिल उठी। मुझे ये सब देख कर अंदर ही अंदर बेहद गुस्सा आ था लेकिन मेरी साजिया को अब कोई परवाह ही नहीं थी। वो आया और मेरे पास ही सीट पर बैठ गया तो साजिया बोली

" अरे कोई दिक्कत तो नही हुई तुम्हे आने में ?

साहिल: नही बस बस पकड़कर सीधे यहीं उतर गया।

साजिया: अच्छा शमा कैसी हैं ? घर में कैसे हैं सब ?

इसी बीच स्टार्टर आ गए थे तो मैं बोला:" अरे भाई अब खाने पर ध्यान दो। बाकी बाते घर जाकर भी कर लेना।

मेरी बात सुनकर दोनो झेंप सी गए लेकिन फिर भी साहिल बोल ही पड़ा:"

" सब अच्छे है। और शमा बाजी बिलकुल ठीक हैं। आपके लिए उन्होंने मिठाई भेजी है।

थोड़ी देर तक शांति छाई रही और हमने सबने साथ में स्टार्टर खत्म कर दिए। उसके बाद थोड़ी देर के लिए उपर घूमने का प्लान बना और सभी उपर की तरफ चल पड़े। सभी मर्दों की निगाहे साजिया पर टिकी हुई थी और हम एक हॉल में बैठ गए जहां अब हल्के हल्के म्यूजिक की आवाज आ रही थीं।

साजिया:" यहां म्यूजिक भी बजता है ?

साहिल:" अरे म्यूजिक नहीं यहां डिस्को बार होता हैं जिसमे आजकल के लड़के लड़कियों और भाभी भी डांस करने आती है यहां।

साजिया की आंखे हैरत से खुल गई और बोली:" क्या सच में यहां डांस होता हैं जैसा फिल्मों में दिखाया जाता है ?

साहिल:" हान सच में बिलकुल वैसा ही होता है बल्कि उससे भी कहीं अच्छा क्योंकि फिल्मों में तो एक्टिंग होती हैं जबकि यहां सच में होता है।

साहिल की बात सुनकर साजिया ने नासिर की तरफ देखा और बोली:"

" चलो न नासिर, मुझे डांस दिखाओ ना, मेरा बहुत मन हैं ये सब सच में देखना का।

नासिर साजिया को नाराज नहीं करना चाहता था और वैसे भी डांस देखने में कोई बुराई नहीं थी तो वो साजिया के साथ चल पड़ा और पीछे पीछे साहिल भी। नासिर ने टिकट लिए और अंदर चले गए। साजिया देख रही थी तो अंदर ज्यादातर जोड़े ही थे तो तेज आवाज म्यूजिक में जोर जोर से डांस कर रहे थे। फ्लोर पर पड़ती रंग बिरंगी लाइट में सभी बेहद खूबसूरत लग रहे थे और साजिया के पैर मानो अपने आप ही थिरकने लगे। उसने नासिर का हाथ पकड़ लिया और बोली:"

" आओ ना हम भी डांस करते है देखो ना कितनी मस्ती कर रहे हैं सब यहां।

नासिर उसके साथ डांस फ्लोर भी चला गया और साहिल साजिया को हसरत भरी निगाहों से देखने लगा। नासिर को डांस नही आता था लेकिन साजिया की खुशी के लिए उसके साथ थिरकने लगा।डांस करते हुए साजिया बार बार नजरे बचाकर साहिल को देखकर स्माइल कर रही थी जो देखकर नासिर को बेहद बुरा लग रहा था।अभी कुछ मिनट ही हुए थे नासिर का फोन बज उठा और वो बोला:"

" मैं थोड़ी देर बाद आता हु। जरुरी कॉल है।

साजिया:" फिर मेरा क्या , मै किसके साथ डांस करू ? साहिल को बुला लूं क्या फ्लोर पर ?

नासिर को बुरा तो लगा लेकिन वो हंगामा नही चाहता था इसलिए बोला:" जैसे तुम्हे ठीक लगे करो। नए प्रोजेक्ट के लिए कॉल हैं। मैं बाद में आता हु।

इतना कहकर नासिर बाहर निकल गया और साजिया ने एक कामुक स्माइल के साथ साहिल को इशारा किया तो वो खुशी खुशी उसके पास आ गया और दोनो डांस करने लगे। साजिया अब बेहद खुशी महसूस कर रही थी और दोनो एक दूसरे का हाथ पकड़ पर डांस कर रहे थे। जान बूझकर साजिया ने अपने सीने पर से दुपट्टा हटा दिया और उसकी बड़ी बड़ी गोल गोल उभरी हुई चूचियां उसके नाचने से उछलने लगी और साहिल ने साजिया का हाथ जोर से दबा दिया तो साजिया ने उसे स्माइल दी और तभी फ्लोर पर लाइट कम होती चली गई और म्यूजिक भी बेहद रोमांटिक होकर धीमा हो गया और वहां मौजूद जोड़ो ने एक दूसरे को अपनी बांहों में भर लिया और डांस करने लगे। साजिया खुद ही साहिल की बांहों में समा गई और उसकी चूचियां उसके सीने में घुस गई। नासिर अंदर आ गया था और अपनी बीवी को साहिल की बांहों में देखकर उसके तन बदन में आग लग गई लेकिन चाह कर भी कुछ नही कर सकता था। दोनो पूरी तरह से एक दूसरे की आंखो में देखते हुए मदहोश हो गए थे और किसी की कोई फिक्र नहीं थी। साहिल के साथ उसकी कमर पर थे और धीरे धीरे सहला रहे थे जिससे साजिया जोश में आकर अपनी चूचियां उसके सीने पर रगड़ रही थी। नासिर अपनी बीवी की हिम्मत पर हैरान हो रहा था कि साजिया इतनी भीड़ में भी साहिल के साथ कितनी मस्ती कर रही थी। साहिल के हाथ अब साजिया की गांड़ पर थे और हल्के हल्के सहला रहे थे और साजिया ने अब पूरी तरह से मदहोश होकर अपना सिर साहिल के कंधे पर टिका दिया मानो अपने आपको पूरी तरह से उसके हवाले कर दिया था। साहिल अब खुलकर उसकी गान्ड मसल रहा था और साजिया की नजर मुझ पर पड़ी तो उसने नाचने का बहाना करते करते अपने सिर को उसके कंधे पर से हटा लिया लेकिन उससे अलग नही हुई और मुझे स्माइल करते हुए नाचने लगी। थोड़ी देर के बाद लाइट और म्यूजिक बंद हुआ और साजिया का दुप्पटा फ्लोर पर ही गिर गया था। दोनो पूरी तरह से उत्तेजित थे और मैं नही होता तो अब तक साजिया चुद गई होती। मैं काउंटर पर बिल भरने लगा भीड़ ज्यादा थी तो मैं लाइन में लग गया और देखा की साजिया और साहिल दोनो गायब थे। मैने इधर उधर देखा लेकिन दोनो कहीं नहीं दिखाए दिए तो मैं समझ गया कि दोनो कहीं रोमांस कर रहे होंगे। अभी थोड़ा समय लगना था क्योंकि मेरे सामने लाइन में अभी भी चार या पांच लोग थे। मैने अपने मोबाइल को गाड़ी के कैमरे से जोड़ा तो मेरी आंखे हैरानी से चमक उठी।

पार्किंग में खड़ी हुई गाड़ी के अंदर साजिया अपनी सलवार उपर किए हुए सीट पर झुकी हुई थी और साहिल उसकी चूत चाट रहा था और मस्ती से सिसक रही थी और तभी साहिल ने अपने लंड को उसकी चूत पर रख कर जोर से धक्का मारा तो साजिया सीट पर गिर पड़ी तो सुविधा के लिए साजिया ने अपने हाथो को सीट पर टिका दिया और साहिल ने एक बार धक्का मारा तो लंड साजिया की चूत में घुस गया और साजिया दर्द और मजे से कराह उठी और साहिल ने बिना रुके दे दनादन उसकी चूत को पेलना शुरू कर दिया। पार्किंग में गाड़ी के अंदर मेरी बीवी पूरी तरह से बेखौफ होकर चुद रही थी। दोनो पूरी तरह से पहले ही गर्म हो हुए थे इसलिए साजिया की पहले से ही पानी पानी हुई चूत ज्यादा देर नहीं टिक गई और वो सिसकते हुए झड़ गई। चूत की गर्मी पाकर साहिल का तड़पता हुआ लंड भी पिघल गया और जोरदार धक्के के साथ वो भी झड़ता चला गया। दोनो ने अपने कपड़े ठीक किए और मेरा इंतजार करने लगे।

मेरा नंबर आया तो मैं बिल देकर बाहर निकल आया तो दोनो बिलकुल नॉर्मल व्यवहार कर रहे थे मानो कुछ हुआ ही नही हो। गाड़ी लेकर मैं घर की तरफ चल पड़ा और दोनो एक दूसरे को मेरी नजरो से बचकर स्माइल दे रहे थे और इसका मतलब पूरी तरह से साफ था कि दोनो ही इस जल्दी में हुई चुदाई से पूरी तरह से संतुष्ट नहीं थे और घर जाकर पूरी रात पलंग तोड़ने वाले थे।
 
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साहिल के जाने के करीब आधे घंटे बाद मैं घर आया और साजिया ने स्माइल के साथ मेरा फिर से स्वागत किया। मैं थोड़ी आराम से बैठा हुआ टीवी देखता रहा और साजिया मेरे लिए चाय लेकर आ गई।

नासिर ने चाय का कप लिया और बोला:" आज शाम को खाने का क्या करना हैं ? कहीं बाहर चले क्या ?

साजिया:" जैसी आपकी मर्जी, रोज खाना ही तो बनाती हु। आज थोड़ा आराम भी मिल जायेगा।

नासिर:" अच्छा फिर आज शाम बाहर ही खायेंगे। यार मैं आज बिलाल भाई से मिला था और कुछ सामान लेना हैं मुझे उनसे, मुझे पांच लाख रुपए चाहिए जो मैने पिछले साल तुम्हे दिए थे।

साजिया मेरी बात सुनकर कांप सी गई और उसके माथे पर पसीना साफ छलक उठा और बोली:"

" अच्छा हान तुमने दिए तो थे। लेकिन बीच बीच में खर्च होते रहे और कुछ मैंने गरीबों के लिए कंबल खरीद लिए थे। अभी देखती हूं कितने बचे हैं।

इतना कहकर साजिया अंदर चली गई और मैं हैरानी से देखता रहा कि कितनी आसानी से वो मुझसे झूठ बोलके चली गई। मुझे समझ नही आ रहा था कि किस तरह उससे कहूं कि दो लाख रुपए तुमने साहिल को दे दिए हैं। मैं सब कुछ जानता था और मेरे पास साजिया की साहिल को पैसे देते हुए वीडियो भी थी लेकिन मैं नही चाहता था कि अभी साजिया को घर में लगे हुए कैमरे का पता चले इसलिए खामोश रहना ही बेहतर समझा।

थोड़ी देर के बाद साजिया आई और उसके हाथ में कुछ रुपए थे और मेरी तरफ देती हुई बोली:"

" लो ये ही बचे हैं बस। गिनती करके देखो एक बार कितने हैं

मैं जानता था कि साजिया एक भी रुपया कभी खर्च नही करती और ये पक्का तीन लाख ही बचे होंगे लेकिन फिर भी दिखावे के लिए गिनने लगा। मैं नोट गिन रहा था और साजिया चेहरे पर परेशानी के भाव लिए हुए मुझे देख रही थी। जैसे ही मैने गिनती पूरी करी तो साजिया से बोला:"

" अरे ये तो सिर्फ तीन लाख ही बच गए हैं। बड़ा खर्च कर दिया तुमने इस बार।

साजिया हल्का सा घबरा गई और फिर भाव दिखाते हुए बोली:"

" अब मैंने किसी की मदद ही करी है। आखिर अपना इतना किसके लिए कमाते हो।

नासिर" मदद करना अच्छी बात हैं लेकिन आगे से इतनी ज्यादा किसी की मदद करने से पहले मुझसे पूछ लेना क्योंकि बुरे वक्त में कोई साथ नहीं देता।

मैंने लगभग बात को खत्म करते हुए कहा और साजिया को भी ये सही मौका लगा और मुझसे लिपट गई और मेरा गाल चूम कर बोली:"

" आप बेफिक्र रहिए। आगे से मैं बिना आपकी मर्जी के कोई काम नही करूंगी।

नासिर ने भी बात को खत्म किया और साजिया को एक स्माइल देकर अपने कमरे में चला गया और पैसों को अपनी अलमारी में रख कर लॉक लगा दिया। नासिर ने अपनी एक नजर कैमरे पर डाली और सुकून की सांस ली कि आज कैमरे की मदद से उसके तीन लाख रुपए बच गए नही तो साजिया साहिल को ये तीन लाख देने से भी पीछे नहीं हटती।

शाम हो गई थी तो मैं बाहर हॉल में आया तो देखा कि साजिया पूरी तरह से तैयार हो गई थी और उसने एक बेहद की कसी हुई ड्रेस पहन रखी थी जिसमे उसके बड़े बड़े गोल गोल कठोर बूब्स पूरी तरह से कस कर बाहर की तरफ निकले हुए थे। पूरी तरह से कयामत, मैं सोच भी नही सकता था कि साजिया इतने कसे हुए और मॉडर्न कपड़े भी पहन सकती है। साजिया पूरी तरह से तैयार थी और अपनी एक सेल्फी लेने लगी।


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मैं समझ रहा था कि साजिया को ऐसे कपड़ो में देखकर लोग पागल हो जाएंगे और हो सकता हैं कि घर वापिस आने तक ये कोई नया आशिक और न बना ले। मैं तो पहले ही एक से परेशान था और बिलकुल नहीं चाहता था कि फिर से कोई नही मुसीबत खड़ी हो इसलिए थोड़ा हिम्मत करके बोला:"

" साजिया वैसे तुम इन कपड़ो में लग तो अच्छी रही हो लेकिन तुम्हे नही लगता क्या कि ये कपड़े कुछ ज्यादा ही फंस गए हैं तुम्हारे शरीर पर आज।

साजिया ने मुझे गौर से देखा और फिर एक स्माइल देते हुए बोली:"

" आप भी ना पहले तो मुझे खुद ऐसे कपड़े पहनने के लिए बोलते थे और अब पहन रही हु तो तुम्हे उसमे भी दिक्कत है। आखिर तुम चाहते क्या हो ?

साजिया का लहजा थोड़ा कड़वा हो गया और आज वो पहली बार आप से तुम पर उतर आई थी। मैने हिम्मत करके कहा:*

" मैं तो कुछ नही चाहता। बस ये ही कह रहा था कि ये कपड़े क्या सही रहेंगे ?

साजिया का मूड खराब हो गया और गुस्से से बोली:"

" तुम ना पता नहीं कैसे हो गए हो हुए हो ? रुको मैं एक काम करती हु कि ये कपड़े ही उतार देती हु।

इतना कहकर वो अपना त्रिया दिखाते हुए अंदर जाने लगी तो मैने उसे रोक दिया क्योंकि मैं उसे नाराज नहीं करना चाहता था और बोला:"

" प्लीज यार, ऐसे गुस्सा मत करो। अच्छे लग रहे हैं कपड़े। बस अब चलते हैं।

मेरे एक बार बोलने की देर थी और साजिया बिलकुल शांत हो गई लेकिन फिर भी मुझ पर दबाव बनाते हुए बोली:"

" इस बार मान जाती हु। आगे से ज्यादा रोक टोक करी तो मुझसे बुरा कोई नही होगा।

मैं क्या बोलता।

इतना कहकर वो बाहर निकल गई और मैं भी उसके साथ ही आ गया और हम दोनो शहर में किसी अच्छे बड़े होटल की तरफ चल पड़े। रास्ते में साजिया चुप ही रही और जैसे ही हम गाड़ी से बाहर निकले तो उसकी चूचियां फिर से तन गई। साजिया ने मेरी तरफ देखा और एक पतला सा स्टॉल अपने सीने पर डाल दिया और बोली:"

" देखो अब सब ठीक हैं ना।

मैने साजिया की तरफ देखा और राहत की सांस ली क्योंकि अब पहले के मुकाबले उसकी चूचियां काफ़ी हद तक ढक गई थी। मैने साजिया को एक स्माइल दी और
जल्दी ही हम एक बड़े मॉल के बाहर खड़े हुए थे जहां का खाना सबसे ज्यादा मशहूर था। हम अंदर आ गए और साजिया ने अपने मोबाइल से एक नम्बर मिलाया और बोली:"

" साहिल हम आज मॉडर्न मॉल में आ गए हैं। तुम एक काम करना यहीं उतर जाना, घर पर कोई नही होगा।

मैं समझ गया कि इसने साहिल को फोन किया है। इसका मतलब इसके पास उसका नंबर भी आ गया। मुझे अगले ही पल अपनी सोच पर हंसी आ गई कि साजिया जिससे पिछले दो दिन से जी भरकर चुद रही हैं भला उसका इसके पास नही तो और किसके पास होगा।

खैर हम अंदर चले गए और मैंने स्टार्टर के लिए एक छोटा सा ऑर्डर दिया। साहिल भी आ गया तो उसे देखते ही साजिया फूल सी खिल उठी। मुझे ये सब देख कर अंदर ही अंदर बेहद गुस्सा आ था लेकिन मेरी साजिया को अब कोई परवाह ही नहीं थी। वो आया और मेरे पास ही सीट पर बैठ गया तो साजिया बोली

" अरे कोई दिक्कत तो नही हुई तुम्हे आने में ?

साहिल: नही बस बस पकड़कर सीधे यहीं उतर गया।

साजिया: अच्छा शमा कैसी हैं ? घर में कैसे हैं सब ?

इसी बीच स्टार्टर आ गए थे तो मैं बोला:" अरे भाई अब खाने पर ध्यान दो। बाकी बाते घर जाकर भी कर लेना।

मेरी बात सुनकर दोनो झेंप सी गए लेकिन फिर भी साहिल बोल ही पड़ा:"

" सब अच्छे है। और शमा बाजी बिलकुल ठीक हैं। आपके लिए उन्होंने मिठाई भेजी है।

थोड़ी देर तक शांति छाई रही और हमने सबने साथ में स्टार्टर खत्म कर दिए। उसके बाद थोड़ी देर के लिए उपर घूमने का प्लान बना और सभी उपर की तरफ चल पड़े। सभी मर्दों की निगाहे साजिया पर टिकी हुई थी और हम एक हॉल में बैठ गए जहां अब हल्के हल्के म्यूजिक की आवाज आ रही थीं।

साजिया:" यहां म्यूजिक भी बजता है ?

साहिल:" अरे म्यूजिक नहीं यहां डिस्को बार होता हैं जिसमे आजकल के लड़के लड़कियों और भाभी भी डांस करने आती है यहां।

साजिया की आंखे हैरत से खुल गई और बोली:" क्या सच में यहां डांस होता हैं जैसा फिल्मों में दिखाया जाता है ?

साहिल:" हान सच में बिलकुल वैसा ही होता है बल्कि उससे भी कहीं अच्छा क्योंकि फिल्मों में तो एक्टिंग होती हैं जबकि यहां सच में होता है।

साहिल की बात सुनकर साजिया ने नासिर की तरफ देखा और बोली:"

" चलो न नासिर, मुझे डांस दिखाओ ना, मेरा बहुत मन हैं ये सब सच में देखना का।

नासिर साजिया को नाराज नहीं करना चाहता था और वैसे भी डांस देखने में कोई बुराई नहीं थी तो वो साजिया के साथ चल पड़ा और पीछे पीछे साहिल भी। नासिर ने टिकट लिए और अंदर चले गए। साजिया देख रही थी तो अंदर ज्यादातर जोड़े ही थे तो तेज आवाज म्यूजिक में जोर जोर से डांस कर रहे थे। फ्लोर पर पड़ती रंग बिरंगी लाइट में सभी बेहद खूबसूरत लग रहे थे और साजिया के पैर मानो अपने आप ही थिरकने लगे। उसने नासिर का हाथ पकड़ लिया और बोली:"

" आओ ना हम भी डांस करते है देखो ना कितनी मस्ती कर रहे हैं सब यहां।

नासिर उसके साथ डांस फ्लोर भी चला गया और साहिल साजिया को हसरत भरी निगाहों से देखने लगा। नासिर को डांस नही आता था लेकिन साजिया की खुशी के लिए उसके साथ थिरकने लगा।डांस करते हुए साजिया बार बार नजरे बचाकर साहिल को देखकर स्माइल कर रही थी जो देखकर नासिर को बेहद बुरा लग रहा था।अभी कुछ मिनट ही हुए थे नासिर का फोन बज उठा और वो बोला:"

" मैं थोड़ी देर बाद आता हु। जरुरी कॉल है।

साजिया:" फिर मेरा क्या , मै किसके साथ डांस करू ? साहिल को बुला लूं क्या फ्लोर पर ?

नासिर को बुरा तो लगा लेकिन वो हंगामा नही चाहता था इसलिए बोला:" जैसे तुम्हे ठीक लगे करो। नए प्रोजेक्ट के लिए कॉल हैं। मैं बाद में आता हु।

इतना कहकर नासिर बाहर निकल गया और साजिया ने एक कामुक स्माइल के साथ साहिल को इशारा किया तो वो खुशी खुशी उसके पास आ गया और दोनो डांस करने लगे। साजिया अब बेहद खुशी महसूस कर रही थी और दोनो एक दूसरे का हाथ पकड़ पर डांस कर रहे थे। जान बूझकर साजिया ने अपने सीने पर से दुपट्टा हटा दिया और उसकी बड़ी बड़ी गोल गोल उभरी हुई चूचियां उसके नाचने से उछलने लगी और साहिल ने साजिया का हाथ जोर से दबा दिया तो साजिया ने उसे स्माइल दी और तभी फ्लोर पर लाइट कम होती चली गई और म्यूजिक भी बेहद रोमांटिक होकर धीमा हो गया और वहां मौजूद जोड़ो ने एक दूसरे को अपनी बांहों में भर लिया और डांस करने लगे। साजिया खुद ही साहिल की बांहों में समा गई और उसकी चूचियां उसके सीने में घुस गई। नासिर अंदर आ गया था और अपनी बीवी को साहिल की बांहों में देखकर उसके तन बदन में आग लग गई लेकिन चाह कर भी कुछ नही कर सकता था। दोनो पूरी तरह से एक दूसरे की आंखो में देखते हुए मदहोश हो गए थे और किसी की कोई फिक्र नहीं थी। साहिल के साथ उसकी कमर पर थे और धीरे धीरे सहला रहे थे जिससे साजिया जोश में आकर अपनी चूचियां उसके सीने पर रगड़ रही थी। नासिर अपनी बीवी की हिम्मत पर हैरान हो रहा था कि साजिया इतनी भीड़ में भी साहिल के साथ कितनी मस्ती कर रही थी। साहिल के हाथ अब साजिया की गांड़ पर थे और हल्के हल्के सहला रहे थे और साजिया ने अब पूरी तरह से मदहोश होकर अपना सिर साहिल के कंधे पर टिका दिया मानो अपने आपको पूरी तरह से उसके हवाले कर दिया था। साहिल अब खुलकर उसकी गान्ड मसल रहा था और साजिया की नजर मुझ पर पड़ी तो उसने नाचने का बहाना करते करते अपने सिर को उसके कंधे पर से हटा लिया लेकिन उससे अलग नही हुई और मुझे स्माइल करते हुए नाचने लगी। थोड़ी देर के बाद लाइट और म्यूजिक बंद हुआ और साजिया का दुप्पटा फ्लोर पर ही गिर गया था। दोनो पूरी तरह से उत्तेजित थे और मैं नही होता तो अब तक साजिया चुद गई होती। मैं काउंटर पर बिल भरने लगा भीड़ ज्यादा थी तो मैं लाइन में लग गया और देखा की साजिया और साहिल दोनो गायब थे। मैने इधर उधर देखा लेकिन दोनो कहीं नहीं दिखाए दिए तो मैं समझ गया कि दोनो कहीं रोमांस कर रहे होंगे। अभी थोड़ा समय लगना था क्योंकि मेरे सामने लाइन में अभी भी चार या पांच लोग थे। मैने अपने मोबाइल को गाड़ी के कैमरे से जोड़ा तो मेरी आंखे हैरानी से चमक उठी।

पार्किंग में खड़ी हुई गाड़ी के अंदर साजिया अपनी सलवार उपर किए हुए सीट पर झुकी हुई थी और साहिल उसकी चूत चाट रहा था और मस्ती से सिसक रही थी और तभी साहिल ने अपने लंड को उसकी चूत पर रख कर जोर से धक्का मारा तो साजिया सीट पर गिर पड़ी तो सुविधा के लिए साजिया ने अपने हाथो को सीट पर टिका दिया और साहिल ने एक बार धक्का मारा तो लंड साजिया की चूत में घुस गया और साजिया दर्द और मजे से कराह उठी और साहिल ने बिना रुके दे दनादन उसकी चूत को पेलना शुरू कर दिया। पार्किंग में गाड़ी के अंदर मेरी बीवी पूरी तरह से बेखौफ होकर चुद रही थी। दोनो पूरी तरह से पहले ही गर्म हो हुए थे इसलिए साजिया की पहले से ही पानी पानी हुई चूत ज्यादा देर नहीं टिक गई और वो सिसकते हुए झड़ गई। चूत की गर्मी पाकर साहिल का तड़पता हुआ लंड भी पिघल गया और जोरदार धक्के के साथ वो भी झड़ता चला गया। दोनो ने अपने कपड़े ठीक किए और मेरा इंतजार करने लगे।

मेरा नंबर आया तो मैं बिल देकर बाहर निकल आया तो दोनो बिलकुल नॉर्मल व्यवहार कर रहे थे मानो कुछ हुआ ही नही हो। गाड़ी लेकर मैं घर की तरफ चल पड़ा और दोनो एक दूसरे को मेरी नजरो से बचकर स्माइल दे रहे थे और इसका मतलब पूरी तरह से साफ था कि दोनो ही इस जल्दी में हुई चुदाई से पूरी तरह से संतुष्ट नहीं थे और घर जाकर पूरी रात पलंग तोड़ने वाले थे।
Nice
 
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Hayatif

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Mai is story me kuch suggest nhi karunga kyuki tum ek kamal ke writer ho, bas ye bolunga is story ko aise khatam karna jaise ki ye story xforum ki sabse best story ban jaye, topic to tumne bahut kamal ki choose kiya bas dekhna hai ise kaise end Tak pahunchaoge.
 
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maakaloda

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Yaar ab to itni aag lag gayi hai ki car main bhi chud rahi hai
 
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sunoanuj

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Lekin bhai ab Nasir ka badla banta hai … paise wala hai wo karwao kuch kaand …
 
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Naik

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अगले दिन सुबह मैं रोज की तरह तैयार हुआ और ऑफिस आ गया। सुकून की बात ये थी कि साहिल भी मेरे साथ और वो फोन पर किसी से चैटिंग कर रहा था और मुझे अच्छी तरह पता था कि वो किससे बात कर रहा था।

खैर ऑफिस जाकर वो अब्दुल के साथ काम में लग गया और मैं बस इसी सोच में डूब गया कि किस तरह साजिया को साहिल से दूर किया जाए। मुझे पूरी उम्मीद थी कि साजिया जल्दी ही खुद ही उससे दूर हो जायेगी क्योंकि सेक्स करते हुए उसके चेहरे पर दर्द के भाव और मुंह से निकलती हुई कराह उसे खुद ही साहिल से दूर होने पर मजबूर कर देगी। मैने आखिरकार बहुत सोच कर यही फैसला किया कि साजिया को थोड़ा समय देना चाहिए ताकि वो खुद ही साहिल से दूर हो गई तो इससे बेहतर कुछ नहीं हो सकता। जिस तरह से आज सुबह उसने साहिल को घर पर रोकने की कोशिश नही करी उससे मेरी उम्मीद जग गई थी। बस मुझे उसे ये एहसास दिलाना था कि मुझसे बेहतर उसके लिए कोई हो नहीं सकता हैं।

खैर दिन भर काम करने के बाद मैं शाम को घर पहुंच गया और साजिया ने स्माइल के साथ मेरा स्वागत किया तो मुझे अच्छा लगा। खाना खाने के बाद हम तीनो हॉल में ही बैठे हुए थे और बाते होने लगी।

साजिया:" साहिल तुम ठीक से काम कर रहे हो ना ?

साहिल:" हान जी मैं अपनी तरफ से पूरी कोशिश कर रहा हूं ताकि अपने आपको साबित कर सकू।

साजिया:" हान देखो तुम मेरी सबसे अच्छी सहेली के भाई हो और मैं नही चाहती कि मेरे ऊपर बाद में कोई बुराई आए।

साहिल:आप निश्चित रहिए। मैं अपनी तरफ से आपको या नासिर भाई को कोई बुराई का मौका नही दूंगा।

साजिया:" अच्छा फिर तो ठीक है । रात भी काफी हो गई है तो अब तुम जाकर आराम करो।

साहिल स्माइल के साथ उठा और अपने कमरे में चला गया। मैं भी अपने कमरे में आ गया और सोचने लगा कि क्या आज भी साजिया दूध देने के बहाने उसे चूत देकर आयेगी।

थोड़ी देर के बाद साजिया हाथ में दूध का ग्लास लिए आई और मेरे पास बैठ गई। मैं दूध पीने लगा और साजिया ने अपना एक हाथ मेरे हाथ के उपर रखा और बोली

"आजकल आप बड़े परेशान से लग रहे हो। सब कुछ ठीक है ना ?

नासिर सच में परेशान था और अब वो साजिया को कैसे बताता की उसकी परेशानी की असली वजह वही है। नासिर ने एक लंबी सांस ली और बोला:"

" परेशान नही हू। बस नए प्रोजेक्ट मिलने से काम बढ़ गया है इसलिए थक जाता हू।

साजिया:" अच्छा आप आराम करो, मैं साहिल को दूध देकर आती हु। फिर आराम से बात करते हैं।

इतना कहकर साजिया चली गई और साहिल ने फिर से उसे अपनी बांहों में भर लिया तो साजिया कसमसाते हुए बोली

" उफ्फ तुम भी ना, जब देखो शुरू हो जाते हो। बस मौका मिलना चाहिए जनाब को।

साहिल उसके गाल चूमकर बोला:"

" अब क्या करू ? तुम चीज है ही इतनी शानदार हो। तुम्हे देखते ही मैं अपने होश खो देता हु।


इतना कहकर उसने साजिया की सलवार में हाथ घुसाया तो साजिया एक झटके के साथी उसकी पकड़ से बाहर निकल गई और स्माइल करते हुए दरवाजे की तरफ बढ़ गई तो साहिल उसे उदास नजरो से देखते हुए बोला:"

" मत जाओ ना साजिया। थोड़ा प्यार करने दो ना मुझे।

साजिया:" काम करो अपना, मैं किसी और की बीवी हु। समझे तुम।

इतना कहकर साजिया ने उसे कामुक इशारा किया और एक रहस्यमई स्माइल देकर बाहर निकल गई।

साजिया थोड़ी देर के बाद वापिस आई तो उसके चेहरे के भाव कुछ बदल गए थे। मेरी समझ में उसकी स्माइल का मतलब बिलकुल भी नहीं आया था और साजिया मेरे पास लेट गई और बोली

:" अब बताए आप क्यों आजकल बदले बदले से लग रहे हो आप।

मुझे समझ नहीं आया कि ये कैसा सवाल है क्योंकि बदल साजिया रही थी और उसने सीधे सीधे इल्जाम मुझ पर लगा दिया था। मैं थोड़ी देर के लिए चुप रहा और फिर बोला:"

" अरे ऐसा कुछ नहीं हैं। बस थक जाता हू बताया तो था तुम्हे। तुम बताओ क्या चल रहा हैं आज कल ?

साजिया ने अपने हाथ को नासिर के सिर पर रख दिया और मालिश करते हुए बोली:"

" कुछ खास नही बस। घर के काम में ही लगी रहती हु। आप तो आजकल बिलकुल भी प्यार नही करते मुझे।

इतना कहकर साजिया ने मेरे होंठो को चूम लिया तो मैने उसे अपनी बांहों में समेट लिया और देखते ही देखते हम दोनों पूरी तरह से नंगे हो गए और मेरे लंड में तनाव आता चला गया और साजिया उसे हाथ से पकड़कर सहलाने लगी और धीरे से मेरे कान में बोली:"

" कितना सख्त हो रहा हैं आपका, उस दिन वाली वीडियो दिखाए न आप मुझे।

मैने ना चाहते हुए भी मोबाइल में वीडियो लगा दी और इतना बड़ा लंड देखकर फिर से साजिया की आंखे बड़ी हो गई और अपनी टांगो को खोलकर मेरे लंड को अपनी चूत के मुंह पर रगड़ने लगी तो मैने धक्कक लगाया और लंड बिना किसी रुकावट के उसकी चूत में घुस गया और साजिया बिना किसी दर्द के बिलकुल आसानी से मेरा लंड अपनी चूत में ले गई। इसका मतलब साफ था कि साहिल ने उसकी चूत को ठीक ठाक खोल दिया था और अब मेरा लंड लेना साजिया के लिए हाथ की उंगली लेने के बराबर हो गया था।

साजिया चूत में लंड लेकर मुझसे कसकर लिपटी रही और अपनी टांगो को मेरी गांड़ पर कसकर मुझे भी धक्के लगाने से रोक दिया और मेरे होंठ चूसते हुए बोली:"

" आह कितना अच्छा लग रहा है नासिर। बस ऐसे ही घुसाए रखो न थोड़ी देर। उफ्फ देखो ना इसका कितना बड़ा है। क्या सच में इतने बड़े होते हैं ?

नासिर वीडियो बंद करना चाहता था लेकिन कर नही सकता था। ये उसके ही किए गए पाप थे जो अब उसके सामने आ रहे थे। नासिर बोला:"

" होता है। इसका ही देखो ना तुम वीडियो में। कुछ लोगो का होता हैं और भी ज्यादा बड़ा हो सकता।

साजिया ने अपनी चूत को पहली बार उसके लंड पर चलाया और बोली:"

" उफ्फ इतना बड़ा कैसे घुसता होगा नासिर।, मर जाएगी ये तो दर्द से।

नासिर का मन किया कि बोल दे कि तू तो कल रात से बार बार इससे भी बड़ा ले रही थी तेरा तो कुछ नही बिगड़ा। लेकिन नासिर ने खुद को संयत किया और बोला:"

" दर्द होता हैं लेकिन बाद में बहुत मजा आता होगा। देखो ना इसको ही कैसे गांड़ उछाल उछाल कर चुद रही हैं।

साजिया नासिर की बात सुनकर पागल सी हो गई और नासिर के लंड पर चढ़ गई और धीरे धीरे उपर नीचे होते हुए बोली:"

" आह नासिर,सच में कितना मजा कर रही है ये तो। खूब उछल उछल रही है।

नासिर एक बार फिर से साजिया की बातो से बहक गया और बोला:"

" हान मजा कर रही हैं साजिया देखो ना कैसे बड़े लंड से चुद रही हैं ये बार बार।

साजिया ने मुंह नीचे करके नासिर के निप्पल को चूस लिया और अपनी जीभ उसकी कान पर रगड़ते हुए सिसकी

" आह नासिर, कितनी जोर जोर से चुद रही हैं उफ्फ उस दिन तुम कह रहे थे कि ये साजिया जैसी लग रही है बिलकुल मेरे जैसी।

नासिर साजिया की हरकत पर बेकाबू हो गया और नीचे से अपने लंड को जोर जोर से उसकी चूत में घुसाने लगा और बोला:"

" आह चुद रही हैं मेरी साजिया चुद रही हैं बड़े लंड से। मेरी बीवी साजिया चुद रही हैं बता ना इसकी तरह चुदेगी बड़े लंड से ?

साजिया ने लंड को पूरा घुसाया और अपनी चूत को उस पर कस दिया और बोली:"

" आह चुद जाऊंगी। उछल उछल कर चुद जाऊंगी बड़े लंड से तेरी साजिया पूरा चूत में लेगी बड़ा सा लंड उससे भी बड़ा लंड।

नासिर साजिया की बात सुनकर बहक सा गया और उसकी चूचियों को जोर जोर से निचोड़ने सा लगा तो मस्ती और दर्द से साजिया पागल सी हो गई और उसका हाथ वीडियो से जा लगा और वीडियो थोड़ा आगे खिसक गया तो उसे देखते ही साजिया पागल सी होकर तेज तेज धक्के लगाने लगी। वीडियो में लड़की दो मर्दों के बीच पड़ी हुई थी और चूत गांड़ में एक साथ लंड ले रही थी। साजिया का चेहरा डर और शर्म से लाल सा हो गया। नासिर ने वीडियो को देखा और समझ गया कि साजिया दो लंड एक साथ देखकर मदहोश हो गई है। नासिर ने साजिया की एक चूची को मुंह में भर लिया और चूसकर बोला:"

"आह्ह्ह्ह देख ना साजिया कैसे चुद रही हैं। उफ्फ देख तू एक साथ दो दो लंड ले रही है।

साजिया ने नसीर के कहने पर मोबाइल देखा और लड़की की हालत देख कर वो तड़प सी गई, मचल सी गई और जोर जोर से धक्के मारने लगी। साजिया पूरी तरह से जोश में थी और नासिर भी उसके रंग में रंगा हुआ था और बोला:"

" बड़ा न साजिया क्या कर रही हैं ? उफ्फ देख ना इसे ?

साजिया की चूत में उबाल आने लगा था तो उसका शरीर कांपने लगा और उत्तेजना से बेकाबू होते हुए बोली

" आह चुद रही हैं। दो लंड से चुद रही हैं।

नासिर का लंड भी अपने आखरी धक्कों पर आ गया और नासिर जोर से धक्के मारने लगा और बोला:"

" कौन चुद रही हैं ? बता ना साजिया कौन चुद रही हैं दो लंड से ?

साजिया की चूत में एक जोरदार कंपन हुआ और उसने लंड को जड़ तक घुसा लिया और नासिर के उपर ढेर होती हुई बोली:"

" आह मैं चुद गई, साजिया तेरी बीवी चुद गई दो लंड से। आह नासिर चुदवा मुझे दो लंड से।

नासिर ने भी एक जोरदार धक्का लगाया और उसकी चूत में वीर्य भरते हुए कहा

" आह चुद जा मेरी जान दो लंड से चुद जा साजिया।

दोनो ने एक दूसरे अपनी बांहों में कस लिया और एक दूसरे को चूमने लगे। जोश ठंडा होते ही नासिर को अपनी गलती का एहसास हुआ कि उसे साजिया से ऐसी बात नहीं करनी चाहिए थी लेकिन अब क्या तीर तो कमान से निकल गया था। मैने साजिया को नंगे ही अपनी बांहों में भर लिया और दोनो सोने लगे।

थोड़ी देर के बाद मैं सोने का नाटक करने लगा और जोर जोर से खर्राटे लेने लगा तो साजिया के जिस्म में हलचल हुई और उसने धीरे से अपने पैर को मेरे कूल्हे पर से हटाया और मुझसे अलग हो गई। मेरा दिल एक बार फिर से जोर से धड़क उठा कि क्या ये आधी रात को फिर से साहिल से चुदने जा रही है। नही इसे ऐसा नहीं करना चाहिए।

मैं सोच ही रहा था कि साजिया बिलकुल नंगी हो कमरे से बाहर निकल गई और थोड़ी देर के बाद मुझे पास वाले कमरे के दरवाजे की आवाज आई तो मैं खड़ा हुआ और बाहर निकल गया और देखा कि साहिल का कमरा पूरी तरह से अंधेरे में डूबा हुआ था और मैं अंदर घुस गया तो मुझे हल्की हल्की सिसकियां और जोर जोर से सांस लेने की आवाजे आई और तभी साजिया के मुंह से दर्द भरी कराह निकली जो इस बात का सुबूत थी कि एक बार फिर से साहिल का मोटा लंबा लंड उसकी चूत में घुस गया था और साजिया दर्द से कराहती हुई चुदने लगी। अंधेरा पूरा था और ये भी पता नही चल रहा था कि साजिया किस पॉजिशन में चुद रही हैं। बस उसकी दर्द भरी कराह और चूड़ियों की खन छन की मधुर आवाज उसकी चुदाई की गवाही दे रही थी। तभी साजिया की सिसकियां तेज और तेज होती चली गई और बेड के चरमराने की आवाजे, जांघो के जोर जोर से थप थप टकराने की आवाजे साजिया की दमदार जोरदार चुदाई की गवाही दे रही थी। तभी पूरे कमरे में साजिया की बेकाबू होती मस्ती भरी सिसकियां गूंज और मैं समझ गया कि साजिया एक बार फिर से झड़ गई है और अगले ही पल उसकी मस्ती भरी सिसकियां दर्द भरी कराहो में बदल गई और साहिल अब पूरी तरह से साजिया पर भारी पड़ रहा था। थोड़ी देर के बाद दोनो एक साथ जोर से सिसक उठे और मैं समझ गया कि अब यहां से निकल जाने में ही भलाई हैं। मैं कमरे में आया और थोड़ी देर बाद ही नंगी साजिया बेड पर आ गई और मैं अपनी हालत पर तरस खाते हुए सोने की कोशिश करने लगा।

अगले दिन सुबह फिर से मैं ऑफिस के लिए निकल गया और साहिल भी साथ ही था। मैं ऑफिस में बैठा हुआ था कि शमा का फोन आ गया और मेरा मूड खराब हो गया क्योंकि इसकी वजह से ही सब कुछ हो रहा था। मैंने न चाहते हुए भी फोन उठाया तो शमा बोली:"

" अस्सलाम वालेकुम भाई। कैसे हो आप ? साहिल ठीक से काम कर रहा है ना।

नासिर:" वालेकुम अस्सलाम। अच्छा हु और साहिल बहुत अच्छे से अपना काम कर रहा है।

शमा:" कोई दिक्कत हो तो आप मुझे बताना। ठीक है भाई। बाद में बात करती हु।

इतना कहकर उसने फोन काट दिया और धीरे धीरे शाम हो आई और हम घर की तरफ चल पड़े। रोज की तरह खाना खाया और सो गए। आज दिन में काम ज्यादा होने की वजह से थक गया था इसलिए रात को क्या हुआ पता नही चला क्योंकि पूरी रात साहिल के कमरे के कमरे की लाइट बंद रही।

धीरे धीरे एक हफ्ता बीत गया और आज रविवार था तो मैंने अपने एक दोस्त से मिलने का वादा किया था और घर से निकल गया। मेरे जाते ही साजिया साहिल से चिपक गई तो साहिल उदास सा खड़ा रहा तो साजिया बोली:"

" क्या हुआ साहिल ? ये बेरुखी इसलिए मेरे साथ ?

साहिल:" बस मन नही है मेरा। अपने आपसे ही परेशान हु मै यार बहुत ज्यादा।

साजिया:" मुझे बताओ क्या पता हैं मैं कोई मदद कर सकू ?

साहिल:" रहने दीजिए आप। शायद मेरे बारे में आप गलत समझ लेगी।

साजिया ने उसका मुंह चूम लिया और बोली:"

" कैसी बाते कर रहे हो ? साफ साफ कहो क्यों इतना परेशान हो तुम ?

साहिल:" वो घर से फोन आया था। मैने पढ़ाई के लिए दो लाख रुपए लिए थे उधार और कल उनकी आखिरी तारीख है। बस इसलिए दुखी हु।

साजिया थोड़ी देर के लिए सोचती रही और फिर उसने अपना बैग खोला और उसमे से दो लाख रुपए कैश निकालकर साहिल के हाथ पर रख दिए और बोली:"

" चलो अब जल्दी से स्माइल करो। घर जाओ और शाम तक वापिस आ जाओ।

साहिल ने खुशी खुशी साजिया को अपनी बांहों में कस लिया और दीवाने की तरह उसका मुंह चूम लिया और बोला:"

" आप सच में बहुत अच्छी है। मैं अभी गया और शाम तक आ जाऊंगा।

इतना कहकर साहिल घर से निकल गया और मैं हैरान सा साजिया को देखता रहा जिसने कितनी आसानी से मेरी कमाई को ऐसे ही साहिल पर लूटा दिया था। मेरे तन बदन में आग लगी हुई थी और मैं घर के तरफ वापिस लौट आया।

अपनी इज्जत के साथ साथ साजिया ने घर की दौलत को भी लुटाना शुरू कर दिया था जो मेरे लिए नाकाबिले बर्दाश्त था।
Bahot badhiya shaandaar update bhai
Sahil n shazia k badan k saath uske paise bhi lootne shuru ker dia dekhte h kab tak apni hawas m andhi bani rahegi shazia
 
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Naik

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साहिल के जाने के करीब आधे घंटे बाद मैं घर आया और साजिया ने स्माइल के साथ मेरा फिर से स्वागत किया। मैं थोड़ी आराम से बैठा हुआ टीवी देखता रहा और साजिया मेरे लिए चाय लेकर आ गई।

नासिर ने चाय का कप लिया और बोला:" आज शाम को खाने का क्या करना हैं ? कहीं बाहर चले क्या ?

साजिया:" जैसी आपकी मर्जी, रोज खाना ही तो बनाती हु। आज थोड़ा आराम भी मिल जायेगा।

नासिर:" अच्छा फिर आज शाम बाहर ही खायेंगे। यार मैं आज बिलाल भाई से मिला था और कुछ सामान लेना हैं मुझे उनसे, मुझे पांच लाख रुपए चाहिए जो मैने पिछले साल तुम्हे दिए थे।

साजिया मेरी बात सुनकर कांप सी गई और उसके माथे पर पसीना साफ छलक उठा और बोली:"

" अच्छा हान तुमने दिए तो थे। लेकिन बीच बीच में खर्च होते रहे और कुछ मैंने गरीबों के लिए कंबल खरीद लिए थे। अभी देखती हूं कितने बचे हैं।

इतना कहकर साजिया अंदर चली गई और मैं हैरानी से देखता रहा कि कितनी आसानी से वो मुझसे झूठ बोलके चली गई। मुझे समझ नही आ रहा था कि किस तरह उससे कहूं कि दो लाख रुपए तुमने साहिल को दे दिए हैं। मैं सब कुछ जानता था और मेरे पास साजिया की साहिल को पैसे देते हुए वीडियो भी थी लेकिन मैं नही चाहता था कि अभी साजिया को घर में लगे हुए कैमरे का पता चले इसलिए खामोश रहना ही बेहतर समझा।

थोड़ी देर के बाद साजिया आई और उसके हाथ में कुछ रुपए थे और मेरी तरफ देती हुई बोली:"

" लो ये ही बचे हैं बस। गिनती करके देखो एक बार कितने हैं

मैं जानता था कि साजिया एक भी रुपया कभी खर्च नही करती और ये पक्का तीन लाख ही बचे होंगे लेकिन फिर भी दिखावे के लिए गिनने लगा। मैं नोट गिन रहा था और साजिया चेहरे पर परेशानी के भाव लिए हुए मुझे देख रही थी। जैसे ही मैने गिनती पूरी करी तो साजिया से बोला:"

" अरे ये तो सिर्फ तीन लाख ही बच गए हैं। बड़ा खर्च कर दिया तुमने इस बार।

साजिया हल्का सा घबरा गई और फिर भाव दिखाते हुए बोली:"

" अब मैंने किसी की मदद ही करी है। आखिर अपना इतना किसके लिए कमाते हो।

नासिर" मदद करना अच्छी बात हैं लेकिन आगे से इतनी ज्यादा किसी की मदद करने से पहले मुझसे पूछ लेना क्योंकि बुरे वक्त में कोई साथ नहीं देता।

मैंने लगभग बात को खत्म करते हुए कहा और साजिया को भी ये सही मौका लगा और मुझसे लिपट गई और मेरा गाल चूम कर बोली:"

" आप बेफिक्र रहिए। आगे से मैं बिना आपकी मर्जी के कोई काम नही करूंगी।

नासिर ने भी बात को खत्म किया और साजिया को एक स्माइल देकर अपने कमरे में चला गया और पैसों को अपनी अलमारी में रख कर लॉक लगा दिया। नासिर ने अपनी एक नजर कैमरे पर डाली और सुकून की सांस ली कि आज कैमरे की मदद से उसके तीन लाख रुपए बच गए नही तो साजिया साहिल को ये तीन लाख देने से भी पीछे नहीं हटती।

शाम हो गई थी तो मैं बाहर हॉल में आया तो देखा कि साजिया पूरी तरह से तैयार हो गई थी और उसने एक बेहद की कसी हुई ड्रेस पहन रखी थी जिसमे उसके बड़े बड़े गोल गोल कठोर बूब्स पूरी तरह से कस कर बाहर की तरफ निकले हुए थे। पूरी तरह से कयामत, मैं सोच भी नही सकता था कि साजिया इतने कसे हुए और मॉडर्न कपड़े भी पहन सकती है। साजिया पूरी तरह से तैयार थी और अपनी एक सेल्फी लेने लगी।


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मैं समझ रहा था कि साजिया को ऐसे कपड़ो में देखकर लोग पागल हो जाएंगे और हो सकता हैं कि घर वापिस आने तक ये कोई नया आशिक और न बना ले। मैं तो पहले ही एक से परेशान था और बिलकुल नहीं चाहता था कि फिर से कोई नही मुसीबत खड़ी हो इसलिए थोड़ा हिम्मत करके बोला:"

" साजिया वैसे तुम इन कपड़ो में लग तो अच्छी रही हो लेकिन तुम्हे नही लगता क्या कि ये कपड़े कुछ ज्यादा ही फंस गए हैं तुम्हारे शरीर पर आज।

साजिया ने मुझे गौर से देखा और फिर एक स्माइल देते हुए बोली:"

" आप भी ना पहले तो मुझे खुद ऐसे कपड़े पहनने के लिए बोलते थे और अब पहन रही हु तो तुम्हे उसमे भी दिक्कत है। आखिर तुम चाहते क्या हो ?

साजिया का लहजा थोड़ा कड़वा हो गया और आज वो पहली बार आप से तुम पर उतर आई थी। मैने हिम्मत करके कहा:*

" मैं तो कुछ नही चाहता। बस ये ही कह रहा था कि ये कपड़े क्या सही रहेंगे ?

साजिया का मूड खराब हो गया और गुस्से से बोली:"

" तुम ना पता नहीं कैसे हो गए हो हुए हो ? रुको मैं एक काम करती हु कि ये कपड़े ही उतार देती हु।

इतना कहकर वो अपना त्रिया दिखाते हुए अंदर जाने लगी तो मैने उसे रोक दिया क्योंकि मैं उसे नाराज नहीं करना चाहता था और बोला:"

" प्लीज यार, ऐसे गुस्सा मत करो। अच्छे लग रहे हैं कपड़े। बस अब चलते हैं।

मेरे एक बार बोलने की देर थी और साजिया बिलकुल शांत हो गई लेकिन फिर भी मुझ पर दबाव बनाते हुए बोली:"

" इस बार मान जाती हु। आगे से ज्यादा रोक टोक करी तो मुझसे बुरा कोई नही होगा।

मैं क्या बोलता।

इतना कहकर वो बाहर निकल गई और मैं भी उसके साथ ही आ गया और हम दोनो शहर में किसी अच्छे बड़े होटल की तरफ चल पड़े। रास्ते में साजिया चुप ही रही और जैसे ही हम गाड़ी से बाहर निकले तो उसकी चूचियां फिर से तन गई। साजिया ने मेरी तरफ देखा और एक पतला सा स्टॉल अपने सीने पर डाल दिया और बोली:"

" देखो अब सब ठीक हैं ना।

मैने साजिया की तरफ देखा और राहत की सांस ली क्योंकि अब पहले के मुकाबले उसकी चूचियां काफ़ी हद तक ढक गई थी। मैने साजिया को एक स्माइल दी और
जल्दी ही हम एक बड़े मॉल के बाहर खड़े हुए थे जहां का खाना सबसे ज्यादा मशहूर था। हम अंदर आ गए और साजिया ने अपने मोबाइल से एक नम्बर मिलाया और बोली:"

" साहिल हम आज मॉडर्न मॉल में आ गए हैं। तुम एक काम करना यहीं उतर जाना, घर पर कोई नही होगा।

मैं समझ गया कि इसने साहिल को फोन किया है। इसका मतलब इसके पास उसका नंबर भी आ गया। मुझे अगले ही पल अपनी सोच पर हंसी आ गई कि साजिया जिससे पिछले दो दिन से जी भरकर चुद रही हैं भला उसका इसके पास नही तो और किसके पास होगा।

खैर हम अंदर चले गए और मैंने स्टार्टर के लिए एक छोटा सा ऑर्डर दिया। साहिल भी आ गया तो उसे देखते ही साजिया फूल सी खिल उठी। मुझे ये सब देख कर अंदर ही अंदर बेहद गुस्सा आ था लेकिन मेरी साजिया को अब कोई परवाह ही नहीं थी। वो आया और मेरे पास ही सीट पर बैठ गया तो साजिया बोली

" अरे कोई दिक्कत तो नही हुई तुम्हे आने में ?

साहिल: नही बस बस पकड़कर सीधे यहीं उतर गया।

साजिया: अच्छा शमा कैसी हैं ? घर में कैसे हैं सब ?

इसी बीच स्टार्टर आ गए थे तो मैं बोला:" अरे भाई अब खाने पर ध्यान दो। बाकी बाते घर जाकर भी कर लेना।

मेरी बात सुनकर दोनो झेंप सी गए लेकिन फिर भी साहिल बोल ही पड़ा:"

" सब अच्छे है। और शमा बाजी बिलकुल ठीक हैं। आपके लिए उन्होंने मिठाई भेजी है।

थोड़ी देर तक शांति छाई रही और हमने सबने साथ में स्टार्टर खत्म कर दिए। उसके बाद थोड़ी देर के लिए उपर घूमने का प्लान बना और सभी उपर की तरफ चल पड़े। सभी मर्दों की निगाहे साजिया पर टिकी हुई थी और हम एक हॉल में बैठ गए जहां अब हल्के हल्के म्यूजिक की आवाज आ रही थीं।

साजिया:" यहां म्यूजिक भी बजता है ?

साहिल:" अरे म्यूजिक नहीं यहां डिस्को बार होता हैं जिसमे आजकल के लड़के लड़कियों और भाभी भी डांस करने आती है यहां।

साजिया की आंखे हैरत से खुल गई और बोली:" क्या सच में यहां डांस होता हैं जैसा फिल्मों में दिखाया जाता है ?

साहिल:" हान सच में बिलकुल वैसा ही होता है बल्कि उससे भी कहीं अच्छा क्योंकि फिल्मों में तो एक्टिंग होती हैं जबकि यहां सच में होता है।

साहिल की बात सुनकर साजिया ने नासिर की तरफ देखा और बोली:"

" चलो न नासिर, मुझे डांस दिखाओ ना, मेरा बहुत मन हैं ये सब सच में देखना का।

नासिर साजिया को नाराज नहीं करना चाहता था और वैसे भी डांस देखने में कोई बुराई नहीं थी तो वो साजिया के साथ चल पड़ा और पीछे पीछे साहिल भी। नासिर ने टिकट लिए और अंदर चले गए। साजिया देख रही थी तो अंदर ज्यादातर जोड़े ही थे तो तेज आवाज म्यूजिक में जोर जोर से डांस कर रहे थे। फ्लोर पर पड़ती रंग बिरंगी लाइट में सभी बेहद खूबसूरत लग रहे थे और साजिया के पैर मानो अपने आप ही थिरकने लगे। उसने नासिर का हाथ पकड़ लिया और बोली:"

" आओ ना हम भी डांस करते है देखो ना कितनी मस्ती कर रहे हैं सब यहां।

नासिर उसके साथ डांस फ्लोर भी चला गया और साहिल साजिया को हसरत भरी निगाहों से देखने लगा। नासिर को डांस नही आता था लेकिन साजिया की खुशी के लिए उसके साथ थिरकने लगा।डांस करते हुए साजिया बार बार नजरे बचाकर साहिल को देखकर स्माइल कर रही थी जो देखकर नासिर को बेहद बुरा लग रहा था।अभी कुछ मिनट ही हुए थे नासिर का फोन बज उठा और वो बोला:"

" मैं थोड़ी देर बाद आता हु। जरुरी कॉल है।

साजिया:" फिर मेरा क्या , मै किसके साथ डांस करू ? साहिल को बुला लूं क्या फ्लोर पर ?

नासिर को बुरा तो लगा लेकिन वो हंगामा नही चाहता था इसलिए बोला:" जैसे तुम्हे ठीक लगे करो। नए प्रोजेक्ट के लिए कॉल हैं। मैं बाद में आता हु।

इतना कहकर नासिर बाहर निकल गया और साजिया ने एक कामुक स्माइल के साथ साहिल को इशारा किया तो वो खुशी खुशी उसके पास आ गया और दोनो डांस करने लगे। साजिया अब बेहद खुशी महसूस कर रही थी और दोनो एक दूसरे का हाथ पकड़ पर डांस कर रहे थे। जान बूझकर साजिया ने अपने सीने पर से दुपट्टा हटा दिया और उसकी बड़ी बड़ी गोल गोल उभरी हुई चूचियां उसके नाचने से उछलने लगी और साहिल ने साजिया का हाथ जोर से दबा दिया तो साजिया ने उसे स्माइल दी और तभी फ्लोर पर लाइट कम होती चली गई और म्यूजिक भी बेहद रोमांटिक होकर धीमा हो गया और वहां मौजूद जोड़ो ने एक दूसरे को अपनी बांहों में भर लिया और डांस करने लगे। साजिया खुद ही साहिल की बांहों में समा गई और उसकी चूचियां उसके सीने में घुस गई। नासिर अंदर आ गया था और अपनी बीवी को साहिल की बांहों में देखकर उसके तन बदन में आग लग गई लेकिन चाह कर भी कुछ नही कर सकता था। दोनो पूरी तरह से एक दूसरे की आंखो में देखते हुए मदहोश हो गए थे और किसी की कोई फिक्र नहीं थी। साहिल के साथ उसकी कमर पर थे और धीरे धीरे सहला रहे थे जिससे साजिया जोश में आकर अपनी चूचियां उसके सीने पर रगड़ रही थी। नासिर अपनी बीवी की हिम्मत पर हैरान हो रहा था कि साजिया इतनी भीड़ में भी साहिल के साथ कितनी मस्ती कर रही थी। साहिल के हाथ अब साजिया की गांड़ पर थे और हल्के हल्के सहला रहे थे और साजिया ने अब पूरी तरह से मदहोश होकर अपना सिर साहिल के कंधे पर टिका दिया मानो अपने आपको पूरी तरह से उसके हवाले कर दिया था। साहिल अब खुलकर उसकी गान्ड मसल रहा था और साजिया की नजर मुझ पर पड़ी तो उसने नाचने का बहाना करते करते अपने सिर को उसके कंधे पर से हटा लिया लेकिन उससे अलग नही हुई और मुझे स्माइल करते हुए नाचने लगी। थोड़ी देर के बाद लाइट और म्यूजिक बंद हुआ और साजिया का दुप्पटा फ्लोर पर ही गिर गया था। दोनो पूरी तरह से उत्तेजित थे और मैं नही होता तो अब तक साजिया चुद गई होती। मैं काउंटर पर बिल भरने लगा भीड़ ज्यादा थी तो मैं लाइन में लग गया और देखा की साजिया और साहिल दोनो गायब थे। मैने इधर उधर देखा लेकिन दोनो कहीं नहीं दिखाए दिए तो मैं समझ गया कि दोनो कहीं रोमांस कर रहे होंगे। अभी थोड़ा समय लगना था क्योंकि मेरे सामने लाइन में अभी भी चार या पांच लोग थे। मैने अपने मोबाइल को गाड़ी के कैमरे से जोड़ा तो मेरी आंखे हैरानी से चमक उठी।

पार्किंग में खड़ी हुई गाड़ी के अंदर साजिया अपनी सलवार उपर किए हुए सीट पर झुकी हुई थी और साहिल उसकी चूत चाट रहा था और मस्ती से सिसक रही थी और तभी साहिल ने अपने लंड को उसकी चूत पर रख कर जोर से धक्का मारा तो साजिया सीट पर गिर पड़ी तो सुविधा के लिए साजिया ने अपने हाथो को सीट पर टिका दिया और साहिल ने एक बार धक्का मारा तो लंड साजिया की चूत में घुस गया और साजिया दर्द और मजे से कराह उठी और साहिल ने बिना रुके दे दनादन उसकी चूत को पेलना शुरू कर दिया। पार्किंग में गाड़ी के अंदर मेरी बीवी पूरी तरह से बेखौफ होकर चुद रही थी। दोनो पूरी तरह से पहले ही गर्म हो हुए थे इसलिए साजिया की पहले से ही पानी पानी हुई चूत ज्यादा देर नहीं टिक गई और वो सिसकते हुए झड़ गई। चूत की गर्मी पाकर साहिल का तड़पता हुआ लंड भी पिघल गया और जोरदार धक्के के साथ वो भी झड़ता चला गया। दोनो ने अपने कपड़े ठीक किए और मेरा इंतजार करने लगे।

मेरा नंबर आया तो मैं बिल देकर बाहर निकल आया तो दोनो बिलकुल नॉर्मल व्यवहार कर रहे थे मानो कुछ हुआ ही नही हो। गाड़ी लेकर मैं घर की तरफ चल पड़ा और दोनो एक दूसरे को मेरी नजरो से बचकर स्माइल दे रहे थे और इसका मतलब पूरी तरह से साफ था कि दोनो ही इस जल्दी में हुई चुदाई से पूरी तरह से संतुष्ट नहीं थे और घर जाकर पूरी रात पलंग तोड़ने वाले थे।
Apne pair per kulhadi maari h tow bhugtow jab sab jaante ho or tumhri nazro k saamne ho raha h tow bolo usko sahil ko kaam se nikalo gher se nikalo dekhte h kab tab khudki nazro m jalil hote rahoge
 
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Mai is story me kuch suggest nhi karunga kyuki tum ek kamal ke writer ho, bas ye bolunga is story ko aise khatam karna jaise ki ye story xforum ki sabse best story ban jaye, topic to tumne bahut kamal ki choose kiya bas dekhna hai ise kaise end Tak pahunchaoge.

अपनी तरफ से पूरा प्रयास होगा। बाकी आप सभी साथ बने रहिए
 
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Yaar ab to itni aag lag gayi hai ki car main bhi chud rahi hai

जिस्म पर किसी का जोर नही चलता। हाथ किसी को पकड़ा दो तो लोग सीधे बूब्स पकड़ लेते है। नासिर की गलती उसे और क्या क्या रंग दिखाएगी आगे साफ हो जायेगा
 
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