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Incest घर की जवान बूरें और मोटे लंड - [ Incest - घरेलू चुदाई की कहानी ]

पायल किस से अपनी सील तुड़वाये ?

  • पापा

    Votes: 196 70.0%
  • सोनू

    Votes: 80 28.6%
  • शादी के बाद अपने पति से

    Votes: 4 1.4%

  • Total voters
    280
  • Poll closed .

Mastrani

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पायल, पापा की याद में
"बेटियां तो पापा का सारा बोझ उठा लेती है. बोल पायल ? उठा लेगी ना अपने पापा का सारा बोझ ? थकेगी तो नहीं ना मेरी बिटिया रानी ?"
पापा की कही उस बात को याद कर पायल बार-बार मुस्कुरा दे रही है.
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Mastrani

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पायल, पापा और सोनू की याद में

"आह...पायल बेटी...पापा झड़ने वाले हैं...आह...!!" , "दीदी...ओह..दीदी...मेरा पानी निकल जायेगा दीदी...ओह..!!" , "हाँ पापा...भाभी को अच्छे से पटक-पटक के चोदीये..."
ये सारी आवाज़े पायल के कानो में गूंज रही थी. उसका कॉलेज खुलने वाला था और इस बात से वो उदास थी.
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Harshit

Active Member
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Isme koi
अपडेट २१:

सुबह के ७ बज रहे है. पायल बिस्तर में अंगडाई लेते हुए ऑंखें खोलती है. कल सोनू के साथ हुई घटना ने उसके बदन में एक अजीब सी मस्ती भर दी थी. अपने ही परिवार के दो मोटे-मोटे लंड को याद कर पायल मुस्कुरा देती है. ये मुस्कराहट लंड से ज्यादा उन रिश्तों की वजह से थी जो पायल और दोनों लंड के मालिकों के बीच था. एक बाप तो दूसरा भाई. बिस्तर से उतर कर पायल आईने के सामने खड़ी हो जाती है और अपनी स्कर्ट उठा के अपनी बालोवाली बूर को धीरे-धीरे सहलाने लगती है. बूर के गुलाबी ओंठों को अपनी दो उँगलियों से खोलते हुए पायल कहती है, "किसका पहले लेगी, बोल..? पापा का या सोनू का?". अपनी बूर से बातें करते हुए पायल को हंसी आ जाती है. दोनों हाथों को उठा के अपने बाल बनाते हुए वो धीरे से अपनी बगल को सूंघती है. अपने बगल की तेज़ गंद पर गर्व महसूस करते हुए पायल बाथरूम जाती है और फिर धीरे-धीरे रसोई की तरफ बढ़ने लगती है.

रसोई में उर्मिला हमेशा की तरह अपना काम कर रही है. पायल उर्मिला को देखती है तो पीछे से लिपट जाती है.

पायल : ह्म्म्म...!! भाभी...!!

उर्मिला : अरे पायल..!! उठा गई तू? और सुबह सुबह तू भाभी के पीठ पर अपनी भरी-भरी चुचिया क्यूँ दबा रही है?

पायल : (उर्मिला से वैसे ही लिपटे हुए) उम्म..भाभी...!! जी कर रहा है ऐसे ही आपकी पीठ पर फिर से सो जाऊ...

उर्मिला : मेरी पीठ पर क्यूँ सोएगी? जा...अपने पापा के पास जा और उनके निचे टाँगे खोल के सोजा...

पायल : (उर्मिला से लिपटे और आँखे बंद किये हुए) उम्म्म....!! मम्मी नहीं होती तो चली जाती...

उर्मिला : नहीं है तेरी मम्मी....!! भूल गई? आज शनिवार है. मंदिर गई है...सोनू के साथ.

उर्मिला की बात सुनते ही पायल की आँखे खुल जाती है. वो कूद कर भाभी के सामने पहुँच जाती है.

पायल : सच भाभी? मम्मी मंदिर गई है सोनू के साथ?

उर्मिला : तो क्या मैं झूठ बोल रही हूँ?

पायल : अरे नहीं भाभी वो बात नहीं है....मतलब अभी घर में पापा अकेले है? मेरा मतलब है की पापा, मैं और आप?

उर्मिला : हाँ मेरी लाडो...पापा, तू और मैं...बस्स....!!

पायल : बापरे भाभी....!! आज कहीं पापा जोश में आ गए तो?

उर्मिला : तो तेरी बूर अच्छे से पेली जाएगी और क्या?

पायल : धत भाभी...आप भी ना...

तभी वहां रमेश टहलते हुए पहुँच जाते है...

रमेश : अरे भाई क्या बाते हो रही है भाभी और ननद में?

उर्मिला : कुछ नहीं बाबूजी...वो मम्मी जी सोनू के साथ मंदिर गई है ना तो पायल पूछ रही थी की वो लोग कब तक घर आयेंगे...

रमेश पायल के पास जाते है. पायल उसके बड़े-बड़े दूध पर नज़र डालते हुए पाया से बालों में हाथ घुमाते हुए कहते है.

रमेश : १:३० - २ घंटे तो लगेगे ही बेटी. मंदिर भी दूर है और तेरी मम्मी आज भजन-कीर्तन में भी भाग लेती है. तुझे तो कही नहीं जाना है ना आज?

पायल : (शर्माते हुए) नहीं पापा...मैं तो घर पर ही हूँ....

पायल को देख कर रमेश मुस्कुरा देते है. फिर उर्मिला को देख कर धीरे से इशारा करते हुए कहते है.

रमेश : अरे बहु....जरा छत से मेरा टॉवेल ले आना तो. अब लगे हाथ नहा भी लूँगा.

उर्मिला : जी बाबूजी....

उर्मिला मुस्कुराते हुए छत की सीढ़ियों की तरफ बढ़ जाती है. उसके जाते ही बाबूजी पायल की चूतड़ों को दबोच के उसे अपने बदन से चिपका लेते है.

रमेश : आह... मेरी गुडिया रानी...अब कहाँ जाएगी अपने पापा से बच के...

पायल : (हँसते हुए) उम्म्म...!! पापा...छोड़िये ना....

रमेश : (धोती पर से अपना लंड पायल की पैन्टी पर दबाते हुए) ऐसी जवान बेटी को कौनसा बाप छोड़ता है पायल...बोल ना? देगी अपनी बूर पापा को?

पायल : (शर्माते हुए) आप बड़े गंदे हो पापा....

रमेश : इसमें गन्दा क्या है बेटी? बेटी अपने पापा से बूर नहीं खुलवाएगी तो फिर शादी के बाद पहली ही रात में पति का कैसे लेगी? बोल ?

पायल : (शर्माते हुए) आपका बहुत मोटा है पापा. आप मेरी बूर खोलोगे थोड़ी ना...आप तो मेरी बूर पूरी फैला दोगे.....

पायल की बात सुन के रमेश पायल के दोनों चुचियों को दबोच लेते है.

रमेश : पापा अपनी बिटिया रानी को पटक-पटक के चोदेंगे तो बूर तो फैलेगी ही ना....बोल ना पायल...चुदवायेगी ना अपने पापा से?

पायल नखरे करते हुए पापा से दूर हो जाती है और सामने खड़े हो कर एक ऊँगली दाँतों के बीच दबाते हुए कहती है.

पायल : नहीं पापा...आपको मेरी बूर नहीं मिलेगी....

पायल की बात सुन कर रमेश धोती से अपना लंड बाहर निकाल लेते है और उसकी चमड़ी पूरी पीछे खींच कर मोटा टोपा पायल को दिखाते हुए कहते है.

रमेश : देख पायल....कैसे तड़प रहा है पापा का अपनी बेटी की बूर के लिए...देगी ना अपने पापा को?

पायल रमेश के लंड को आँखे फाड़-फाड़ के देखने लगती है. उसके ओंठ अपने आप ही दांतों के निचे आ जाते है. फिर पापा को देख कर वो मुस्कुराते हुए मस्ती में कहती है.

पायल : नहीं दूंगी...नहीं दूंगी...नहीं दूंगी.....!!!

तभी उर्मिला अपनी चौड़ी चुतड मटकाते हुए वहां पहुँच जाती है. रमेश के पीछे खड़ी हो कर वो कहती है.

उर्मिला : क्या नहीं देगी मेरी ननद रानी?

रमेश उर्मिला को मुड़ के देखते है. रमेश के चेहरे पर वैसे ही भाव है जैसे किसी भिखारी के चेहरे पर भीख मांगते वक़्त होते है.

रमेश : देखो ना बहु...कैसे जिद कर रही है. मैं यहाँ अपना लंड खड़ा किये हूँ और ये बोल रही है की बूर नहीं दूंगी...

उर्मिला चलते हुए बाबूजी के पास आती है. ११ इंच का मोटा लंड देख कर उर्मिला के मुहँ और बूर, दोनों में पानी आ जाता है. वो पायल के पास जाती है और उसके सर पर प्यार से हाथ फेरने लगती है.

उर्मिला : क्यूँ रे पायल? अपने पापा को कोई बेटी ऐसे परेशान करती है क्या?

पायल : क्या करूँ भाभी? इतना मोटा लंड है पापा का...मेरी बूर पूरी फ़ैल गई तो?

उर्मिला : धत पगली..!! बूर क्या सिर्फ पेशाब करने के लिए होती है? बूर का तो काम ही है मोटे-मोटे लंड लेना और फ़ैल जाना....और बेटियां सबसे पहला लंड अपने पापा का ही तो लेती है. ठीक कहा ना बाबूजी?

रमेश : हाँ..हाँ.. बहु...बिलकुल ठीक कहा तुमने. बाप जिस लंड से बेटी को पैदा करता है, बड़ी हो कर वो बेटी उसी लंड से तो अपनी बूर खुलवाती है....

उर्मिला : और नहीं तो क्या? और इसे देखो...कैसे नखरे कर रही है. आप नहाने जाइये बाबूजी...इसे मैं समझाती हूँ....

बाबूजी टॉवेल ले कर धीरे-धीरे बाथरूम में चले जाते है. बाबूजी के जाते ही उर्मिला हँसते हुए पायल से कहती है.

उर्मिला : क्यूँ री? इतने नखरे क्यूँ कर रही थी?

पायल : (हँसते हुए) भाभी आपको पापा का चेहरा देखना था...जब मैंने मना किया तो कितना छोटा सा हो गया था....

उर्मिला : हाँ ...तुने छोटा मुहँ तो देख लिया लेकिन उनका बड़ा लंड नहीं देखा क्या? अगर मैं ना आती तो बाबूजी तुझे पटक के तेरी बूर फाड़ ही देते....अभी दांत दिखा के जो हँस रही है ना फिर रोती फिरती सारे घर में अपनी फटी बूर ले कर ....

पायल : सच भाभी? बहुत दर्द होता है क्या?

उर्मिला : हाँ पायल...पहली बार तो होता ही है. और बाबूजी का तो बहुत लम्बा और मोटा है. दर्द तो होगा. १-२ बार ले लेगी ना फिर देख कैसे मजा आता है. फिर तो मेरी पायल रानी उच्छल-उच्छल के पापा का लंड अपनी बूर में लेगी.

पायल : (खुश हो कर) सच भाभी?

उर्मिला : हाँ मेरी बन्नो...!! अच्छा अब सुन. मेरे पास कुछ शोर्ट बिना बाहं की नाईटी है जो मैंने अपने हनीमून के वक़्त खरीदी थी. बाबूजी नाहा के आयेंगे तो तू उसे पहन के बाबूजी के पास चली जाना...

पायल : मैं अकेले नहीं जाउंगी भाभी...आप भी साथ चलियेगा ना....

उर्मिला : अरे पागल...बूर तुझे खुलवानी है, मुझे नहीं....

पायल : भाभी प्लीज...आप ही तो कहती थी ना की बाबूजी आपकी भी लेना चाहते है. और आप भी तो इतने दिनों से लंड के लिए तरस रही हो ना? प्लीज भाभी...आप भी चलिए ना...

उर्मिला : अच्छा बाबा ठीक है. हम दोनों चलेंगे...अब ठीक?

पायल : (खुश होते हुए) हाँ भाभी....

उर्मिला : अच्छा अब चल...मैं वो शोर्ट नाईटी निकाल लूँ हम दोनों के लिए...

पायल : हाँ भाभी....

उर्मिला पायल के साथ अपने कमरे में चली जाती है और शोर्ट नाईटी के इंतज़ाम में लग जाती है. इधर बाबूजी कुछ देर बाद नाहा के निकलते है. सिर्फ टॉवेल कमर पर लपेटे हुए बाबूजी रसोई में नज़र डालते है तो वहां कोई नहीं है. वो धेरे धीरे अपने कमरे में चले जाते है. कमरे में बैठ कर वो कुछ सोचते है फिर पायल को आवाज़ लगते है.

रमेश : पायल...!! पायल बेटी..!!

तभी दरवाज़े पर पायल नज़रे झुकाए खड़ी हो जाती है. पायल ने बिना बाहं वाली एक लाल रंग की शोर्ट नाईटी पहनी हुई है जो पारदर्शी है. देखने मैं साफ़ पता चल रहा है की पायल ने अन्दर ब्रा नहीं पहनी है. रमेश पायल को आँखे फाड़े ऊपर से निचे देखने लगते है. पारदर्शी नाईटी में उठे हुए गोल गोल दूध जिसपर हलके से निप्प्लेस भी प्रतीत हो रहे है. पायल के शरीर की वो रेत घड़ी (hourglass) सी बनावट उस पारदर्शी नाईटी में साफ़ दिखाई पड़ रही थी. नाईटी जांघो तक थी और पायल की जांघो के बीच का हिस्सा अन्दर था. लेकिन नाईटी के पारदर्शी होने की वजह से पायल की जांघो के बीच घने बाल नाईटी में बाहर से भी प्रतीत हो रहे थे. पायल का वो संगेमरमर सा बदन और वो रूप देख कर रमेश के टॉवेल में बड़ा सा उभार आ जाता है.

तभी पायल के कन्धों पर हाथ रखे, उर्मिला उसे धीरे धीरे अन्दर लाने लगती है. रमेश की नज़र उर्मिला पर पड़ती है तो उर्मिला ने भी वैसी ही नाईटी पहनी हुई थी. उर्मिला के भी बड़ेबड़े दूध और निप्प्लेस पारदर्शी नाईटी से साफ़ दिखाई दे रहे थे. जांघो के बीच घने बाल भी प्रतीत हो रहे थे. दोनों को इस हाल में देख रमेश के होश उड़ जाते है.

उर्मिला : लीजिये बाबूजी...आ गई आपकी लाड़ली बेटी....

उर्मिला पायल को बाबूजी के सामने खड़ा कर देती है. पायल अब भी नज़रे झुकाए खड़ी है और धीरे-धीरे मुस्कुरा रही है. रमेश भी पायल को मुस्कुरा कर देखते है फिर अपने हाथ से उसकी ठोड़ी पकड़ के ऊपर करते हुए कहते है.

रमेश : इधर देख बेटी....(पायल पापा की आँखों में देखती है)....बहुत खूबसूरत लग रही है मेरी पायल इस कपडे में.

पायल एक बार पापा की आँखों में देखती है फिर ओठों को दाँतों टेल दबाते हुए नज़रे झुका लेती है. उर्मिला रमेश से कहती है.

उर्मिला : बाबूजी ये आपके सामने इतना शर्मा रही है. अभी कुछ देर पहले मुझ से कह रही थी की आज पापा को पूरा मजा दूंगी...

उर्मिला की बात सुन के पायल बड़ी-बड़ी आँखों से भाभी को देखते हुए कहती है....

पायल : धत भाभी...चुप रहिये ना....!!

रमेश : (मुस्कुराते हुए) सच पायल? जरा बता तो...कैसे मजा देगी पापा को...

पायल फिर से शर्मा जाती है. उर्मिला उसके पास आती है और कहती है.

उर्मिला : अब भी शर्मा रही है. मम्मी के आने तक शर्माती ही रहेगी क्या?. (फिर रमेश को देखते हुए) बाबूजी आप अपना लंड दिखाइए तो इसे. तभी इसकी शर्म दूर होगी...

रमेश अपना टॉवेल आगे से खोल देते है तो उनका ११ इंच का लम्बा मोटा लंड पायल के सामने लहराने लगता है. पायल की नज़र पापा के लंड पर पड़ती है तो उसके बदन में मस्ती चड़ने लगती है. वो एक बार पापा को देखती है और फिर उर्मिला को. उर्मिला उसे आँख मार देती है. पायल पापा को देखती है और पापा की नजरो से नज़रे मिलाते हुए एक जोर का झटका दे कर अपने बड़े-बड़े दूध उच्छाल देती है. रमेश की आँखों के सामने पायल के दूध उच्छल जाते है. अपनी बेटी के उच्छालते दूध को देख कर रमेश का लंड भी एक झटका मार देता है. पायल ३-४ बार ऐसे ही झटके दे कर अपने दूध उच्छल देती है और हर बार रमेश का लंड भी झटके खता है. फिर पायल उर्मिला को देखती है तो उर्मिला आँखों के इशारे से उसे बेशर्मी दिखाने कहती है. पायल फिर से पापा को देखते हुए अपनी नाईटी ऊपर से खोल कर कमर तक उतार देती है. उसके बड़े-बड़े नंगे दूध पापा के सामने खुले हुए है. पायल पापा को देखते हुए फिर से झटके देते हुए ३-४ बार अपने दूध उच्छाल देती है. रमेश से अब रहा नहीं जा रहा है. वो पायल से कहता है.

रमेश : पायल बेटी...इधर आ...बैठ अपने पापा की गोद में...

पायल धीरे-धीरे पापा के पास जाती है. पापा का ११ इंच का लंड खड़े हो कर हिचकोले ले रहा है. पायल पापा के पास जा कर, पीठ उनके तरफ करते हुए, अपनी चौड़ी चूतड़ों को पापा की गोद में रखने जाती है तभी उर्मिला झट से आ कर पीछे से पायल की नाईटी ऊपर कर देती है.

उर्मिला : (पीछे से पायल की नाईटी ऊपर करते हुए) अरे अरे पायल....!! नाईटी निचे कर के बैठेगी अपने पापा की गोद में? बेटी अपने पापा की गोद में हमेशा कपडे उठा कर बैठती है....

पायल उर्मिला को देख कर मुस्कुराते हुए अपनी भरी हुई चुतड पापा की गोद में जैसे ही रखती है, पापा का मोटा लंड उसके गांड के छेद पर टकरा कर फिसलता हुए बूर पर आता है और बूर से फिसलता हुआ पायल के नंगे पेट पर रगड़ता हुआ आगे से उसकी नाईटी उठा देता है. उर्मिला झुक कर देखती है तो बाबूजी का मोटा लंड पायल की बूर पर चिपका हुआ है और लंड का टोपा नाईटी को अपने सर पर लिए उसकी नाभि के पास खड़ा है. पायल की बालोवाली बूर के ओंठ फैलकर पापा के मोटे लंड पर चिपके हुए है. रमेश एक बार धीरे से अपनी कमर ऊपर निचे करते है तो लंड पायल के बूर के दाने पर रगड़ खा जाता है. पायल के मुहँ से सिस्कारियां निकलने लगती है.

पायल : सीईईईईईईईई.....!! पापा......!!!

पायल की सिसकारी सुनते ही रमेश अपने दोनों हाथो से पायल के दोनों दूध दबोच लेते है और मसलने लगते है. पायल मस्ती में अपना सर पीछे कर के पापा के कन्धों पर रख लेती है और आँखे बंद किये सिस्कारिया लेने लगती है. रमेश भी धीरे-धीरे अपना लंड पायल के बूर के दाने पर रगड़ने लगते है. रमेश को अपनी बेटी के बूर पर लंड रगड़ते हुए देख उर्मिला भी एक हाथ से अपनी बूर रगड़ने लगती है.

उर्मिला : बाबूजी...बहुत गरम है आपकी बेटी. इसके बदन में बहुत गर्मी है....

रमेश : हाँ बहु...बहुत गर्मी है इसके बदन में... इसकी गर्मी तो आज...(जोर से दूध मसल देते है और लंड बूर के दाने पर रगड़ देते है)...इसके पापा उतरेंगे.....

पायल : सीईईईईइ....पापा...!!!

रमेश : (दूध मसलते हुए अपने लंड को जोर से पायल की बूर पर रगड़ देते है) पापा...पापा....हाँ...?? जब घर में पापा के सामने बड़े-बड़े दूध उठा कर घुमती थी, तब पापा की याद नहीं आई? आज जब नंगी हो कर पापा के लंड पर बैठी है तो पापा की याद आ रही है? ...क्यूँ पायल? ...बोल?

पायल : (आँखें बंद और तेज़ साँसे लेते हुए) आह...!! पापा...!! आपके मोटे लंड पर नंगी हो कर बैठना चाहती थी, तभी तो आपके सामने बड़े-बड़े दूध लिए घुमती थी....आह...!!

रमेश : हाय मेरी बिटिया रानी..!! इतना तड़पती थी अपने पापा के लंड के लिए....उफ्फ्फ....!!!

क्रमश :

(अब और लिखना मुश्किल हो रहा है. आगे का भाग जल्दी के लिख कर पोस्ट कर दूंगी)

(कहानी जारी है. अब तक कैसी लगी कृपया कर के बतायें )
Isme koi shak nahi ki aap bahut badi lekhika ho lekin ek din aapko saari duniya jaanegi lekhika mastrani ke naam se yadi aap sach me ek mahila hain to aapki lekhni ki tulna kisi se nahi ki jaa sakti
 
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