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Incest यह क्या हुआ

Sanju@

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इधर चंदा अपनी मां की आने का इंतजार कर रही थी जब कमला उसके कमरे मे नही आई तब वह खुद ही अपने कमरे से बाहर निकलकर अपने मां को ढूंढने लगी। उसकी मां जब कही नही नज़र आई तब वह चंदन के कमरे की ओर गई कमरे का दरवाजा अंदर से बंद था तो वह दरवाजे पर कान लगाकर सुनने की कोशिश करने लगी।

उसे उसके मैं की सिसकने की आवाज़ सुनाई पड़ी तो वह समझ गया की मां आज चंदन के कमरे में अकेली ही गई है और चंदन से chud रही है। उसकी मां की सिसकारी सुनकर वह भी काफ़ी गर्म हो गई और अपने उंगली से अपनी chut सहलाने लगी जब अंदर सिसकारी आना बन्द huwa तब वह समझ गई की चंदन झड़ गया है। अब मैं कभी भी बाहर आ सकती है अतः वह अपने कमरे मे जाकर अपने मां का बाहर आने का इंतजार करने लगी।

जब कमला कमरे से निकलकर कर नहाने बाथरूम में चली गईं। तब चंदा चंदन के कमरे में चली गई।

चंदा _क्यू रि आज तो अपनी बहन के बगैर ही मां का शुद्धिकरण करण कर लिया। अब तुम्हे अपनी दीदी की j जरूरत नहीं है क्या?

चंदन _नही दीदी ऐसी बात नहीं है मां कह रही थी तुम सो रही थी। तो तुम्हे रोज रोज उन्हें परेशान करना उचित नहीं लगा।

चंदा _हा भई, मां की chut मिलते ही बहन की दुदू भूल गए।

चंदन _दीदी मै तुम्हारे दुदू कैसे भुल सकता हूं। कितने मस्त है आपके दूदू इसमें तो दूध भी भरा huwa hai इसे पीकर chut मारने का अलग ही मजा है।

और चंदन चंदा की दुदू को ब्लाउज के उपर से ही मसलने लगा। इस समय चन्दन नंगा ही बेड पर लेटा था और चंदा उसके पास बैठी थी।

चंदा _बस कर, अब मुझे और न बना। लगता है तुम आज मां के दुदू से खेलो हो।

चंदन मुस्कुराने लगा।
चंदा अपने ब्लाउज के बटन को खोल कर चूची बाहर निकाल दिया।

चंदा _क्या मां के चूची मेरे ज्यादा अच्छे है जो इसे भूल गया।

चंदन अपनी दीदी के मम्मे को मसलते हुवे कहा। नही दीदी तुम्हारे दुदू में तो दुध भरा है न मां के में नही तो तुम्हारा मसलकर चुसने में ज्यादा मज़ा आता है।

ऐसा कहते हुवे चंदन, चंदा की दुदू को मसलकर पीने लगा। दीदी कितना मीठा है आपका दूध।

चंदा की बड़ी बड़ी दूध से भरी चूची को मसलने awam चुसने से चंदा गर्म हो गई और चंदन भी जोश में आ गया और उसका land तनकर फिर से खड़ा हो गया।

चंदा _हाय दईया तुम्हारा तो फिर से खड़ा हो गया रि, क्या मां का शुद्धिकरण करने से तुम्हरा मन नहीं भरा है।

ऐसा बोलकर चंदा, चंदन के land को अपने हाथो में लेकर सहलाने लगा।

चंदा _दीदी ये तो तुम्हारे दूध से भरे दुदू का कमाल है।

चंदा _ क्या तुम्हे फिर से करने का मन कर रहा है क्या?

चंदा _दीदी मां फिर से थोड़े ही देगी।


चंदा _मुझे चोदेगा?

चंदन _दीदी ये क्या कह रही हो? तुम तो अभी पेट से हो, बच्चे को कुछ हो गया तो।

चंदा _अरे नही re थोड़ा सावधानी से करे तो कुछ नहीं होगा। मैने और तुम्हारे जीजा ने पहला बच्चा के समय बच्चा पैदा करने तक मजे लिए।

चंदन _सच दीदी मै तोअब तककुछ करनेसे डररहा था। तुम्हारा पेट इतना बड़ा हो गया है।कुछ करने से कही बच्चा को नुकसान न हो जाए।

चंदन से रहा न गया और वह चंदा के ओंठ चुसने लगा।

चंदाभी चंदन का सहयोग करने लगी और एक हाथ से उसके land सहला रही थी ।

चंदन का land तनकर लोहे के रॉड की तरह हो गया। उसके land का सुपारा खाफी फूल गया था क्योंकि कुछ देर पहले ही वह कमला boor पर डुबकी लगा या था अब उसकी बड़ी बहन चंदा के chut में डुबकी लगाने के अहसास में ही और लंबा और मोटा हो गया।

चंदन _दीदी अब खोलो न बर्दास्त नही हो रहा

चंदा _तू तो बडा उतावला हो गया re अपनी दीदी का लेने। और वह हसने लगी।

इधर चंदा भी काफ़ी दिनो से प्यासी थी और जब से वह चंदन का land देखी थीं वह भी चंदन से chudna चाहती थी।

अब चंदा पीठ के बल लेट गई और अपना चड्डी निकालकर अपने पेटीकोट और साड़ी ऊपर उठा दी जिससे उसका चिकनी chut चंदन के सामने आ गया।

चंदन_दीदी तुम्हारी chut तो एकदम चिकनी है।

चंदा _हा re मै इसे हमेशा चिकना ही रखती हूं।

चंदन एक हाथ से अपने land पकड़ कर दुसरे हाथ से चंदा के chut के को सहलाने लगा।

चंदा सिसकने लगी। चंदा अपने हाथ से चंदन के land को पकड़कर कर हिलाने लगी फिर उसे अपने chut के छेद में रख दी और बोली।

चंदा _चल अब देर न कर डाल दे।

चंदन land ko पकड़कर boor के छेद पर रखा चंदा अपने दोनो हाथो की उंगलियों से उसके फांकों को फ़ैला दी ।

चंदन ने एक हल्का धक्का मारा land का सुपाड़ा योनि के अंदर चला गया। फिर चंदन चंदा के चूची चुसने लगा।

कुछ देर बाद फिर एक जोर का धक्का मारा land boor को चीरकर आधा अंदर घुस गया।

चंदा के मुंह से आह निकल गया।

चंदा _बहुंत बडा है तेरा re आराम से डाल।

चंदन अब चंदा के चूची को मसलते हुए। धीरे धीरे अन्दर बाहर करने लगा।

चंदा तो पहले से ही काफ़ी गर्म थी उसका chut का पानी बाहर निकलना शुरू हो गई। जिससे चंदन का land गीला हो गया अब land फुच फुच की आवाज़ करता huwa चंदा के योनी के गहराई में उतरने लगा।
चंदन, चंदा के पेट पर दबाव न पड़े इस बात को ध्यान में रखकर अपने हाथो से चंदा के क़मर को पकड़कर land को तेजी से अन्दर बाहर करना शुरू कर दिया

कई माह बाद चंदा chud रही थी काफ़ी दिनो से प्यासी थी उसे खाने को एक नया land मिला था जो उसके पति से बडा और मोटा था वह बहुत जल्द ही जन्नत में पहुंच गई।

इधर चंदन को भी एक गर्भवती इस्त्री को चोदने का एक नया सुख मिल रहा था। वह भी जोश में आकर चंदा को humach हमच कर चोदने लगा

चंदा को अलग अलग आसान में चुदाने का शौंक था इसलिए वह आसन बदलना चाहती थी। इसलिए वह चंदन से रुकने बोली

चंदन _क्या हुआ दीदी मजा नही आ रहा है क्या?

चंदा _मै जैसे कह रही वैसे करो और ज्यादा मजा आयेगा। पहले तुम हठो और मुझे उठने दो।

चंदन अपने land ko पकड़कर कर बाहर निकाल दिया और अलग खडा हो गया।

चंदा पलंग से उठी और पलंग पर चढ गई और घोड़ी बन गई। और अपना साड़ी पेटिकोट ऊपर करके चूतड को चंदन के सामने खोल दी।

चंदा _चंदन तुम मेरे पीछे आओ। और पिछे से डालो।

चंदन _समझ गया की ऐसा तो कुत्ता kutiya को चोदता है। वह पलंग पर चढ गया और और घुटने के बल चंदा के पिछे खड़ा हो गया और उसके chut ka छेद देखने लगा। चंदा के गोरे गोरे भरे हुवे चूतड देखकर चंदन का land ठुमकने लगा।

चंदा _अब देख क्या रहा है डाल न।
चंदन land ko चंदा के योनी में डालने का कोशिश करने लगा पर land अंदर नही जा पा रहा था।

तब चंपा एक हाथ पिछे ले जाकर चंदन के land को पकड़ लिया और उसे अपने chut के छेद में सेट कर दी।

चंदा _अब डालो।

चंदन अब हल्का सा धक्का मारा टोपा योनि के अंदर घुस गया। फिर एक जोर का dhakaa मारा land boor ko फाड़कर सरसराता huwa अंदर घुस गया।

अब चंदन, चंदा के क़मर को अपने हाथो से पकड़ कर अंदर बाहर करना शुरू किया land अब पूरा योनि में समाकर अंदर बाहर होने लगा।
चंदा के गोरे गोरे चूतड को हाथो से सहलाता huwa जोर जोर से धक्का देकर चंदा को चोदने लगा। चूतड का का चंदन के शरीर से टकराने लगा जिससे थप थप थप की आवाज़ गूंजने लगा।

पहले पोजिशन से इस पोजिशन में चोदने में चंदन को ज्यादा मजा आने लागा।

चंदा _क्यू re कैसा लग रहा है?

चंदन _मत पूछो दीदी, क्या गजब का मज़ा आ रहा है? दीदी तुम्हारे चूतड काफ़ी खूबसूरत है।

चंदन काफ़ी जोश में आ गया और वह gach gach करके दनादन चंदा को चोदने लगा चंदा भी स्वर्ग में पहुंच गई थी काफ़ी दिनो बाद उसकी chut की प्यास बुझ रही थी वह भी अपना क़मर हिलाकर चंदन का सहयोग करने लगी ।

चंदन को भी ऐसा मजा पहली बार मिल रहा था। वह भी स्वर्ग में पहुंच गया। और अपना सुध बुध खोकर गचगच चंदा को चोदने लगा चंदा भी सिसकारी निकाल रही थी।

अब चंदन को बर्दास्त ना हुवा और वह जोर जोर से चोदते हुए जोर से अपने दोनो हाथो से अपने चंदा की चूतड को अपने land से सटा लिया और आह आह करके कराहते हुवे झड़ने लगा। वीर्य की पिचकारी उसके land से निकलकर उसके योनि में भरने लगा।

कई दिनों बाद अपने योनि में गर्म गर्म वीर्य का अहसास पाकर चंदा भी खुद को न रोक सकी और झड़ने लगी।

कुछ देर तक दोनो झड़ने का आनंद लेंने लगे। चंदा को भी झड़ने में ऐसा आनद पहली बार मिला था। जो सुख चंदन से मिला था उसकी कल्पना भी उसने नही की थी।

चंदन को भी एक 8माह की गर्भवती स्त्री को इस तरह भोगने का सुख मिला था। ऐसा परमसुख पाकर वह सपने को धन्य समझ रहा था।

आज उसको दो दो स्त्रियों को भोगने का सुख मिला था और दो दो स्त्रियों को सुख दे पाया था । वह गर्व महसूस कर रहा था।

कुछ देर वे दोनो बिस्तर पर लेटे रहे फिर चंदा बोली चलो री अब नहाकर jaldi पूजा रुम मे चलो नहीतो मां पूछेगी अब तक क्या कर रहे थे।
Fantastic update
 

rajesh bhagat

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राजेश ने कार स्टार्ट किया और वे सभी कालेज को निकल पड़े। रास्ते में,,

राजेश _थैंक्स सीमा हेल्प के लिए।

सीमा _थैंक्स मेरा नही, निशा का कीजिए राज, क्यू की कार तो निशा का है और तुम लोगो को निशा ने ही देखा और कार रुकवाई।

राजेश _ओह क्या सच में, थैंक्स निशा।

निशा ने अपना सिर हिलाया। पर कुछ बोली नहीं।

राजेश _सीमा जी, लडके लोगो का ख्याल निशा जी के बारे में बिल्कुल गलत है।

सीमा _क्या कहते है? लडके हमारे निशा जी के बारे में।

राजेश _यही की निशा जी बहुंत घमंडी है इन्हे अपने दौलत का बहुत घमंड है। वह किसी से ढंग से बात नही करती।

सीमा _हमारी निशा के बारे में ठीक से ,लोग जानते नही है न इसलिए गलत धारणाएं रखते हैं।
वैसे आप क्या सोचते हैं हमारी निशा के बारे में।

राजेश _पहले तो आप लोगो से ठीक से मिला ही नहीं था, पर अब कह सकता हूं की निशा जी तो दिल की अच्छी एवम हेल्पिंग नेचर की है।

सीमा _वो तो है पर सच बात तो ये है कि हमारी निशा को लडको पे ज्यादा इंट्रेस्ट नही है इसलिए ज्यादा उनसे घुलती मिलती नही है। न ही ज्यादा लडको से बात करती है।

राजेश _ओह रियली, वैसे आप दोनो एक कुशल नृत्यांगना है पिछले वर्ष वार्षिक समारोह में आप दोनो ने कमाल का डांस की थी वो क्या गाना था?

हा,,, याद आया,, दिल डोला re,डोला re , डोला दिल डोला,,,,,
राजेश गीत गुनगुनाने लगी,,,

सीमा _हंसते हुवे,क्या हमारा डांस सच में अच्छा लगा?।

राजेश _और नही तो क्या लोग आप लोगो की कितनी तारीफ कर रहे थे। वैसे एक बात पूछूं अगर आप लोग बुरा न मानो तो,,

सीमा _राज हम बुरा नही मानेंगे बोलो।

राजेश _वैसे तुम दोनो में पारो कौन थी और चंद्रमुखी कौन?

यह प्रश्न सुनते ही निशा राज की ओर देखा, राज भी निशा का रिएक्शन जानने के लिए निशा की ओर देखा दोनो की नजरे मिली।

राजेश को लगा की निशा नाराज हो गई।

राजेश _सॉरी गलती हो गई,शायद मैने गलत प्रश्न पूछ दिया।

सीमा _हंसते हुवे बोली, नही राज इसमें सॉरी की क्या बात है । मै तो चंद्रमुखी बनी थींऔर निशा पारो।

सीमा _वैसे राज इस बार स्टूडेंट ऑफ द ईयर के लिए आपका तैयारी कैसी चल रहीं।
सुना है इस बार रोहन , आपको चुनौती देने के लिए काफी तैयारी कर रहा है। पिछले बार सेकंड पोजिशन पर था।

रोहन निशा के ही क्लास में था वह भी एक अमीर बाप का इकलौता लड़का था। वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब प्राप्त करना चाहता था। पिछले वर्ष वह राजेश से पिछे रह गया।

राजेश _अच्छा लगा सुनकर चलो कोई तो है मुझे चुनौती देना चाहता है। वैसे पिछले वर्ष भी काफी अच्छी कोशिश की थी।

वैसे सीमा तुम किसे इस खिताब में देखना चाहोगी?

सीमा _हम तो आप ही को इस खिताब में देखना चाहते हैं। रोहन में तो ईगो भरा है।
अब वे कालेज के काफी नजदीक पहुंच गए थे।

राजेश _पता, नही इंसान आख़िर ईगो क्यू करता है। धन दौलत तो कमाया जा सकता है? पर इज्जत और मान सम्मान तो व्यक्ति अपने व्याहार से प्राप्त करता है। हमे सब के साथ घुलमिलकर रहना चाहिए।
अगर हम लोगो से अलग और दूर दूर रहे तो जिंदगी एक दिन बोझिल हो जायेगी।

यह जिंदगी तो चार दिनों की है। सबके साथ प्यार बांटकर और हंसते गाते बिताना चाहिए।
क्यू की जिंदगी न मिलेगी दोबारा।

सीमा _राज तुम बिल्कुल सही कह रहे हो।

इधर निशा राजेश की बातो को बड़ी ध्यान से सुन रही थी। उसे लग रही थी की राज ने यह बाते उनके लिए कही है।

राजेश _लो हम कालेज पहुंच गए।

वे सभी कार से उतरे राजेश, ने जाने से पहले निशा को एक बार फिर से धन्यवाद कहा।

इस बार निशा ने बोला _इसमें थैंक्स की क्या बात है राज क्या तुम हमारी मदद नहीं करोगे यदि हम किसी मुस्किल में हो।

निशा और राजेश एक दुसरे के आंखो में देखने लगे।

राजेश _तुमने बिल्कुल सही कहा निशा जी हम सबको एक दूसरे की मदद करनी चाहिए। क्यू कि

सीमा _ये जिंदगी मिलेगी न दोबारा! और सीमा हसने लगी।

राजेश अपने दोस्तो के पास निशा सीमा और स्वीटी अपने क्लास की ओर जाने लगीं।

जाते जाते सीमा निशा से बोली वैसे

सीमा _वाह मैमसाब, राज से बड़ी अच्छी बात कही तुमने वैसे हिम्मत जुटाई लाई कैसे तुम तो लडको से बात करना पसंद नहीं करती लगता है राज के बातो का असर है और वो हसने लगी।

निशा _चुप रह नही तो पिटेगी मेरे हाथों से तुम्हे तो कुछ ज्यादा बोलने की बीमारी चढ़ी है। और ये क्या मेम साब मेम साब बोले जा रही थी। राजेश क्या समझेगा मेरे बारे में।

सीमा _ओ तो मुझे अच्छा लगता है तुम्हे मेम साब कहना इसलिए बोलती हू। सॉरी। जी अब नही कहूंगी।

वैसे मेम साब शब्द तुमको शूट करता है। और वह मुंह बन्द कर हसने लगी।

निशा _तुम सुधरोगे नही। और वह सीमा को घूरकर देखने लगी।

इधर कालेज में उस समय मौजूद सभी लोग आश्चर्य में थे। राजेश को निशा के कार से उतरते देख।

राजेश जब भगत के पास गया _

भगत _भाई आपून आज बहुत खुश है।

राजेश _क्यू बे, क्या हो गया।

भगत _शूट करता है भाई,,,,अपने दायिने हांथ की तर्जनी और अंगूठा से गोला बनाकर इशारा करते हुवे कहा।

राजेश _क्या बोल रहा है बे मैं समझा नही।

भगत _जोड़ी भाई जोड़ी।

राजेश _किसकी जोड़ी बे।

भगत _बाजू में बैठे अपने दोस्तो से कहा। अबे तुम लोग भी कुछ बोलो।

अन्य दोस्त एक साथ बोले मस्त जोड़ी है भाई।
राजेश _किसकी जोड़ी बे क्या bake जा रहे बे ।

भगत _तेरी और निशा की भाई भगत कैंटीन में चाय पीते हुए कहा।

राजेश हस्ते हुवे कहा अबे क्या बकवास कर रहे हों ऐसा कुछ भी नहीं और उसने दोस्तो को सारी बातें बताई।

भगत _अरे भाई ऐसी बात है हम तो कुछ और ही समझ गए थेऔर मै ये कैसे भुल गया की तुमको तो लड़कियों में इंट्रेस्ट नही। सॉरी भाई।

इधर रोहन को जब पता चला की राजेश और निशा कार में एक साथ आए हैं उसके दिल में सांप लौट गया। क्यू की वह निशा को पाना चाहता था।

उसका इस कॉलेज में एडमिशन लेने के पीछे उद्देश्य भी यही था, निशा को पाना।

और वह हर एक उपाय कर रहा था निशा का दिल जीतने। पर अभी तक वह निशा का दिल जीत नही पाया था।
दरअसल रोहन एक बडी कंपनी के मालकिन रीता विवेक मेहता का लड़का था। विशाल एंड सुजाता ग्रुप इनका प्रतिद्वंदी था कई मौकों पर रीता और सुजाता के बीच प्रतिद्वंदिता में सुजाता आगे निकल जाती थी। और रीता अपने आप को अपमानित महसूस करती थी वह सुजाता को अपने से नीचा दिखाने के प्रयास में थी।

वह रोहन को12के बाद विदेश पढ़ना न भेजकर, उसी कालेज में दाखिला दिला दी जिसमे निशा ने एडमिशन ली। ताकि रोहन निशा को अपने प्यार के जाल में फसा सके, और निशा को अपना बहु बनाकर सुजाता से अपने अपमानो का बदला ले सके।

लेकीन रोहननिशा का दिल अभी तक नही जीत सका था। रीता ने ही रोहन से कहा की वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब जीते जिससे निशा तुम्हारी ओर इंप्रेस हो।

और रोहन की तैयारी के लिए ट्रेनर भी रख लिया था। पर स्टूडेंट ऑफ द ईयर बनना इतना आसान नहीं है उसके लिए खेल, कला और शिक्षा तीनों क्षेत्रों में बेस्ट परफॉर्मेंस देना होगा।
 

Ajju Landwalia

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राजेश ने कार स्टार्ट किया और वे सभी कालेज को निकल पड़े। रास्ते में,,

राजेश _थैंक्स सीमा हेल्प के लिए।

सीमा _थैंक्स मेरा नही, निशा का कीजिए राज, क्यू की कार तो निशा का है और तुम लोगो को निशा ने ही देखा और कार रुकवाई।

राजेश _ओह क्या सच में, थैंक्स निशा।

निशा ने अपना सिर हिलाया। पर कुछ बोली नहीं।

राजेश _सीमा जी, लडके लोगो का ख्याल निशा जी के बारे में बिल्कुल गलत है।

सीमा _क्या कहते है? लडके हमारे निशा जी के बारे में।

राजेश _यही की निशा जी बहुंत घमंडी है इन्हे अपने दौलत का बहुत घमंड है। वह किसी से ढंग से बात नही करती।

सीमा _हमारी निशा के बारे में ठीक से ,लोग जानते नही है न इसलिए गलत धारणाएं रखते हैं।
वैसे आप क्या सोचते हैं हमारी निशा के बारे में।

राजेश _पहले तो आप लोगो से ठीक से मिला ही नहीं था, पर अब कह सकता हूं की निशा जी तो दिल की अच्छी एवम हेल्पिंग नेचर की है।

सीमा _वो तो है पर सच बात तो ये है कि हमारी निशा को लडको पे ज्यादा इंट्रेस्ट नही है इसलिए ज्यादा उनसे घुलती मिलती नही है। न ही ज्यादा लडको से बात करती है।

राजेश _ओह रियली, वैसे आप दोनो एक कुशल नृत्यांगना है पिछले वर्ष वार्षिक समारोह में आप दोनो ने कमाल का डांस की थी वो क्या गाना था?

हा,,, याद आया,, दिल डोला re,डोला re , डोला दिल डोला,,,,,
राजेश गीत गुनगुनाने लगी,,,

सीमा _हंसते हुवे,क्या हमारा डांस सच में अच्छा लगा?।

राजेश _और नही तो क्या लोग आप लोगो की कितनी तारीफ कर रहे थे। वैसे एक बात पूछूं अगर आप लोग बुरा न मानो तो,,

सीमा _राज हम बुरा नही मानेंगे बोलो।

राजेश _वैसे तुम दोनो में पारो कौन थी और चंद्रमुखी कौन?

यह प्रश्न सुनते ही निशा राज की ओर देखा, राज भी निशा का रिएक्शन जानने के लिए निशा की ओर देखा दोनो की नजरे मिली।

राजेश को लगा की निशा नाराज हो गई।

राजेश _सॉरी गलती हो गई,शायद मैने गलत प्रश्न पूछ दिया।

सीमा _हंसते हुवे बोली, नही राज इसमें सॉरी की क्या बात है । मै तो चंद्रमुखी बनी थींऔर निशा पारो।

सीमा _वैसे राज इस बार स्टूडेंट ऑफ द ईयर के लिए आपका तैयारी कैसी चल रहीं।
सुना है इस बार रोहन , आपको चुनौती देने के लिए काफी तैयारी कर रहा है। पिछले बार सेकंड पोजिशन पर था।

रोहन निशा के ही क्लास में था वह भी एक अमीर बाप का इकलौता लड़का था। वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब प्राप्त करना चाहता था। पिछले वर्ष वह राजेश से पिछे रह गया।

राजेश _अच्छा लगा सुनकर चलो कोई तो है मुझे चुनौती देना चाहता है। वैसे पिछले वर्ष भी काफी अच्छी कोशिश की थी।

वैसे सीमा तुम किसे इस खिताब में देखना चाहोगी?

सीमा _हम तो आप ही को इस खिताब में देखना चाहते हैं। रोहन में तो ईगो भरा है।
अब वे कालेज के काफी नजदीक पहुंच गए थे।

राजेश _पता, नही इंसान आख़िर ईगो क्यू करता है। धन दौलत तो कमाया जा सकता है? पर इज्जत और मान सम्मान तो व्यक्ति अपने व्याहार से प्राप्त करता है। हमे सब के साथ घुलमिलकर रहना चाहिए।
अगर हम लोगो से अलग और दूर दूर रहे तो जिंदगी एक दिन बोझिल हो जायेगी।

यह जिंदगी तो चार दिनों की है। सबके साथ प्यार बांटकर और हंसते गाते बिताना चाहिए।
क्यू की जिंदगी न मिलेगी दोबारा।

सीमा _राज तुम बिल्कुल सही कह रहे हो।

इधर निशा राजेश की बातो को बड़ी ध्यान से सुन रही थी। उसे लग रही थी की राज ने यह बाते उनके लिए कही है।

राजेश _लो हम कालेज पहुंच गए।

वे सभी कार से उतरे राजेश, ने जाने से पहले निशा को एक बार फिर से धन्यवाद कहा।

इस बार निशा ने बोला _इसमें थैंक्स की क्या बात है राज क्या तुम हमारी मदद नहीं करोगे यदि हम किसी मुस्किल में हो।

निशा और राजेश एक दुसरे के आंखो में देखने लगे।

राजेश _तुमने बिल्कुल सही कहा निशा जी हम सबको एक दूसरे की मदद करनी चाहिए। क्यू कि

सीमा _ये जिंदगी मिलेगी न दोबारा! और सीमा हसने लगी।

राजेश अपने दोस्तो के पास निशा सीमा और स्वीटी अपने क्लास की ओर जाने लगीं।

जाते जाते सीमा निशा से बोली वैसे

सीमा _वाह मैमसाब, राज से बड़ी अच्छी बात कही तुमने वैसे हिम्मत जुटाई लाई कैसे तुम तो लडको से बात करना पसंद नहीं करती लगता है राज के बातो का असर है और वो हसने लगी।

निशा _चुप रह नही तो पिटेगी मेरे हाथों से तुम्हे तो कुछ ज्यादा बोलने की बीमारी चढ़ी है। और ये क्या मेम साब मेम साब बोले जा रही थी। राजेश क्या समझेगा मेरे बारे में।

सीमा _ओ तो मुझे अच्छा लगता है तुम्हे मेम साब कहना इसलिए बोलती हू। सॉरी। जी अब नही कहूंगी।

वैसे मेम साब शब्द तुमको शूट करता है। और वह मुंह बन्द कर हसने लगी।

निशा _तुम सुधरोगे नही। और वह सीमा को घूरकर देखने लगी।

इधर कालेज में उस समय मौजूद सभी लोग आश्चर्य में थे। राजेश को निशा के कार से उतरते देख।

राजेश जब भगत के पास गया _

भगत _भाई आपून आज बहुत खुश है।

राजेश _क्यू बे, क्या हो गया।

भगत _शूट करता है भाई,,,,अपने दायिने हांथ की तर्जनी और अंगूठा से गोला बनाकर इशारा करते हुवे कहा।

राजेश _क्या बोल रहा है बे मैं समझा नही।

भगत _जोड़ी भाई जोड़ी।

राजेश _किसकी जोड़ी बे।

भगत _बाजू में बैठे अपने दोस्तो से कहा। अबे तुम लोग भी कुछ बोलो।

अन्य दोस्त एक साथ बोले मस्त जोड़ी है भाई।
राजेश _किसकी जोड़ी बे क्या bake जा रहे बे ।

भगत _तेरी और निशा की भाई भगत कैंटीन में चाय पीते हुए कहा।

राजेश हस्ते हुवे कहा अबे क्या बकवास कर रहे हों ऐसा कुछ भी नहीं और उसने दोस्तो को सारी बातें बताई।

भगत _अरे भाई ऐसी बात है हम तो कुछ और ही समझ गए थेऔर मै ये कैसे भुल गया की तुमको तो लड़कियों में इंट्रेस्ट नही। सॉरी भाई।

इधर रोहन को जब पता चला की राजेश और निशा कार में एक साथ आए हैं उसके दिल में सांप लौट गया। क्यू की वह निशा को पाना चाहता था।

उसका इस कॉलेज में एडमिशन लेने के पीछे उद्देश्य भी यही था, निशा को पाना।

और वह हर एक उपाय कर रहा था निशा का दिल जीतने। पर अभी तक वह निशा का दिल जीत नही पाया था।
दरअसल रोहन एक बडी कंपनी के मालकिन रीता विवेक मेहता का लड़का था। विशाल एंड सुजाता ग्रुप इनका प्रतिद्वंदी था कई मौकों पर रीता और सुजाता के बीच प्रतिद्वंदिता में सुजाता आगे निकल जाती थी। और रीता अपने आप को अपमानित महसूस करती थी वह सुजाता को अपने से नीचा दिखाने के प्रयास में थी।

वह रोहन को12के बाद विदेश पढ़ना न भेजकर, उसी कालेज में दाखिला दिला दी जिसमे निशा ने एडमिशन ली। ताकि रोहन निशा को अपने प्यार के जाल में फसा सके, और निशा को अपना बहु बनाकर सुजाता से अपने अपमानो का बदला ले सके।

लेकीन रोहननिशा का दिल अभी तक नही जीत सका था। रीता ने ही रोहन से कहा की वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब जीते जिससे निशा तुम्हारी ओर इंप्रेस हो।

और रोहन की तैयारी के लिए ट्रेनर भी रख लिया था। पर स्टूडेंट ऑफ द ईयर बनना इतना आसान नहीं है उसके लिए खेल, कला और शिक्षा तीनों क्षेत्रों में बेस्ट परफॉर्मेंस देना होगा।

Bahut hi shandar update he rajesh bhagat Bhai,

Rajesh aur Rohan ke beech competition bahut hi majedar hone wala he...........

Keep posting Bhai
 

rajesh bhagat

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राजेश ने कार स्टार्ट किया और वे सभी कालेज को निकल पड़े। रास्ते में,,

राजेश _थैंक्स सीमा हेल्प के लिए।

सीमा _थैंक्स मेरा नही, निशा का कीजिए राज, क्यू की कार तो निशा का है और तुम लोगो को निशा ने ही देखा और कार रुकवाई।

राजेश _ओह क्या सच में, थैंक्स निशा।

निशा ने अपना सिर हिलाया। पर कुछ बोली नहीं।

राजेश _सीमा जी, लडके लोगो का ख्याल निशा जी के बारे में बिल्कुल गलत है।

सीमा _क्या कहते है? लडके हमारे निशा जी के बारे में।

राजेश _यही की निशा जी बहुंत घमंडी है इन्हे अपने दौलत का बहुत घमंड है। वह किसी से ढंग से बात नही करती।

सीमा _हमारी निशा के बारे में ठीक से ,लोग जानते नही है न इसलिए गलत धारणाएं रखते हैं।
वैसे आप क्या सोचते हैं हमारी निशा के बारे में।

राजेश _पहले तो आप लोगो से ठीक से मिला ही नहीं था, पर अब कह सकता हूं की निशा जी तो दिल की अच्छी एवम हेल्पिंग नेचर की है।

सीमा _वो तो है पर सच बात तो ये है कि हमारी निशा को लडको पे ज्यादा इंट्रेस्ट नही है इसलिए ज्यादा उनसे घुलती मिलती नही है। न ही ज्यादा लडको से बात करती है।

राजेश _ओह रियली, वैसे आप दोनो एक कुशल नृत्यांगना है पिछले वर्ष वार्षिक समारोह में आप दोनो ने कमाल का डांस की थी वो क्या गाना था?

हा,,, याद आया,, दिल डोला re,डोला re , डोला दिल डोला,,,,,
राजेश गीत गुनगुनाने लगी,,,

सीमा _हंसते हुवे,क्या हमारा डांस सच में अच्छा लगा?।

राजेश _और नही तो क्या लोग आप लोगो की कितनी तारीफ कर रहे थे। वैसे एक बात पूछूं अगर आप लोग बुरा न मानो तो,,

सीमा _राज हम बुरा नही मानेंगे बोलो।

राजेश _वैसे तुम दोनो में पारो कौन थी और चंद्रमुखी कौन?

यह प्रश्न सुनते ही निशा राज की ओर देखा, राज भी निशा का रिएक्शन जानने के लिए निशा की ओर देखा दोनो की नजरे मिली।

राजेश को लगा की निशा नाराज हो गई।

राजेश _सॉरी गलती हो गई,शायद मैने गलत प्रश्न पूछ दिया।

सीमा _हंसते हुवे बोली, नही राज इसमें सॉरी की क्या बात है । मै तो चंद्रमुखी बनी थींऔर निशा पारो।

सीमा _वैसे राज इस बार स्टूडेंट ऑफ द ईयर के लिए आपका तैयारी कैसी चल रहीं।
सुना है इस बार रोहन , आपको चुनौती देने के लिए काफी तैयारी कर रहा है। पिछले बार सेकंड पोजिशन पर था।

रोहन निशा के ही क्लास में था वह भी एक अमीर बाप का इकलौता लड़का था। वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब प्राप्त करना चाहता था। पिछले वर्ष वह राजेश से पिछे रह गया।

राजेश _अच्छा लगा सुनकर चलो कोई तो है मुझे चुनौती देना चाहता है। वैसे पिछले वर्ष भी काफी अच्छी कोशिश की थी।

वैसे सीमा तुम किसे इस खिताब में देखना चाहोगी?

सीमा _हम तो आप ही को इस खिताब में देखना चाहते हैं। रोहन में तो ईगो भरा है।
अब वे कालेज के काफी नजदीक पहुंच गए थे।

राजेश _पता, नही इंसान आख़िर ईगो क्यू करता है। धन दौलत तो कमाया जा सकता है? पर इज्जत और मान सम्मान तो व्यक्ति अपने व्याहार से प्राप्त करता है। हमे सब के साथ घुलमिलकर रहना चाहिए।
अगर हम लोगो से अलग और दूर दूर रहे तो जिंदगी एक दिन बोझिल हो जायेगी।

यह जिंदगी तो चार दिनों की है। सबके साथ प्यार बांटकर और हंसते गाते बिताना चाहिए।
क्यू की जिंदगी न मिलेगी दोबारा।

सीमा _राज तुम बिल्कुल सही कह रहे हो।

इधर निशा राजेश की बातो को बड़ी ध्यान से सुन रही थी। उसे लग रही थी की राज ने यह बाते उनके लिए कही है।

राजेश _लो हम कालेज पहुंच गए।

वे सभी कार से उतरे राजेश, ने जाने से पहले निशा को एक बार फिर से धन्यवाद कहा।

इस बार निशा ने बोला _इसमें थैंक्स की क्या बात है राज क्या तुम हमारी मदद नहीं करोगे यदि हम किसी मुस्किल में हो।

निशा और राजेश एक दुसरे के आंखो में देखने लगे।

राजेश _तुमने बिल्कुल सही कहा निशा जी हम सबको एक दूसरे की मदद करनी चाहिए। क्यू कि

सीमा _ये जिंदगी मिलेगी न दोबारा! और सीमा हसने लगी।

राजेश अपने दोस्तो के पास निशा सीमा और स्वीटी अपने क्लास की ओर जाने लगीं।

जाते जाते सीमा निशा से बोली वैसे

सीमा _वाह मैमसाब, राज से बड़ी अच्छी बात कही तुमने वैसे हिम्मत जुटाई लाई कैसे तुम तो लडको से बात करना पसंद नहीं करती लगता है राज के बातो का असर है और वो हसने लगी।

निशा _चुप रह नही तो पिटेगी मेरे हाथों से तुम्हे तो कुछ ज्यादा बोलने की बीमारी चढ़ी है। और ये क्या मेम साब मेम साब बोले जा रही थी। राजेश क्या समझेगा मेरे बारे में।

सीमा _ओ तो मुझे अच्छा लगता है तुम्हे मेम साब कहना इसलिए बोलती हू। सॉरी। जी अब नही कहूंगी।

वैसे मेम साब शब्द तुमको शूट करता है। और वह मुंह बन्द कर हसने लगी।

निशा _तुम सुधरोगे नही। और वह सीमा को घूरकर देखने लगी।

इधर कालेज में उस समय मौजूद सभी लोग आश्चर्य में थे। राजेश को निशा के कार से उतरते देख।

राजेश जब भगत के पास गया _

भगत _भाई आपून आज बहुत खुश है।

राजेश _क्यू बे, क्या हो गया।

भगत _शूट करता है भाई,,,,अपने दायिने हांथ की तर्जनी और अंगूठा से गोला बनाकर इशारा करते हुवे कहा।

राजेश _क्या बोल रहा है बे मैं समझा नही।

भगत _जोड़ी भाई जोड़ी।

राजेश _किसकी जोड़ी बे।

भगत _बाजू में बैठे अपने दोस्तो से कहा। अबे तुम लोग भी कुछ बोलो।

अन्य दोस्त एक साथ बोले मस्त जोड़ी है भाई।
राजेश _किसकी जोड़ी बे क्या bake जा रहे बे ।

भगत _तेरी और निशा की भाई भगत कैंटीन में चाय पीते हुए कहा।

राजेश हस्ते हुवे कहा अबे क्या बकवास कर रहे हों ऐसा कुछ भी नहीं और उसने दोस्तो को सारी बातें बताई।

भगत _अरे भाई ऐसी बात है हम तो कुछ और ही समझ गए थेऔर मै ये कैसे भुल गया की तुमको तो लड़कियों में इंट्रेस्ट नही। सॉरी भाई।

इधर रोहन को जब पता चला की राजेश और निशा कार में एक साथ आए हैं उसके दिल में सांप लौट गया। क्यू की वह निशा को पाना चाहता था।

उसका इस कॉलेज में एडमिशन लेने के पीछे उद्देश्य भी यही था, निशा को पाना।

और वह हर एक उपाय कर रहा था निशा का दिल जीतने। पर अभी तक वह निशा का दिल जीत नही पाया था।
दरअसल रोहन एक बडी कंपनी के मालकिन रीता विवेक मेहता का लड़का था। विशाल एंड सुजाता ग्रुप इनका प्रतिद्वंदी था कई मौकों पर रीता और सुजाता के बीच प्रतिद्वंदिता में सुजाता आगे निकल जाती थी। और रीता अपने आप को अपमानित महसूस करती थी वह सुजाता को अपने से नीचा दिखाने के प्रयास में थी।

वह रोहन को12के बाद विदेश पढ़ना न भेजकर, उसी कालेज में दाखिला दिला दी जिसमे निशा ने एडमिशन ली। ताकि रोहन निशा को अपने प्यार के जाल में फसा सके, और निशा को अपना बहु बनाकर सुजाता से अपने अपमानो का बदला ले सके।

लेकीन रोहननिशा का दिल अभी तक नही जीत सका था। रीता ने ही रोहन से कहा की वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब जीते जिससे निशा तुम्हारी ओर इंप्रेस हो।

और रोहन की तैयारी के लिए ट्रेनर भी रख लिया था। पर स्टूडेंट ऑफ द ईयर बनना इतना आसान नहीं है उसके लिए खेल, कला और शिक्षा तीनों क्षेत्रों में बेस्ट परफॉर्मेंस देना होगा।












 

Raj_sharma

परिवर्तनमेव स्थिरमस्ति ||❣️
Supreme
22,325
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259
राजेश ने कार स्टार्ट किया और वे सभी कालेज को निकल पड़े। रास्ते में,,

राजेश _थैंक्स सीमा हेल्प के लिए।

सीमा _थैंक्स मेरा नही, निशा का कीजिए राज, क्यू की कार तो निशा का है और तुम लोगो को निशा ने ही देखा और कार रुकवाई।

राजेश _ओह क्या सच में, थैंक्स निशा।

निशा ने अपना सिर हिलाया। पर कुछ बोली नहीं।

राजेश _सीमा जी, लडके लोगो का ख्याल निशा जी के बारे में बिल्कुल गलत है।

सीमा _क्या कहते है? लडके हमारे निशा जी के बारे में।

राजेश _यही की निशा जी बहुंत घमंडी है इन्हे अपने दौलत का बहुत घमंड है। वह किसी से ढंग से बात नही करती।

सीमा _हमारी निशा के बारे में ठीक से ,लोग जानते नही है न इसलिए गलत धारणाएं रखते हैं।
वैसे आप क्या सोचते हैं हमारी निशा के बारे में।

राजेश _पहले तो आप लोगो से ठीक से मिला ही नहीं था, पर अब कह सकता हूं की निशा जी तो दिल की अच्छी एवम हेल्पिंग नेचर की है।

सीमा _वो तो है पर सच बात तो ये है कि हमारी निशा को लडको पे ज्यादा इंट्रेस्ट नही है इसलिए ज्यादा उनसे घुलती मिलती नही है। न ही ज्यादा लडको से बात करती है।

राजेश _ओह रियली, वैसे आप दोनो एक कुशल नृत्यांगना है पिछले वर्ष वार्षिक समारोह में आप दोनो ने कमाल का डांस की थी वो क्या गाना था?

हा,,, याद आया,, दिल डोला re,डोला re , डोला दिल डोला,,,,,
राजेश गीत गुनगुनाने लगी,,,

सीमा _हंसते हुवे,क्या हमारा डांस सच में अच्छा लगा?।

राजेश _और नही तो क्या लोग आप लोगो की कितनी तारीफ कर रहे थे। वैसे एक बात पूछूं अगर आप लोग बुरा न मानो तो,,

सीमा _राज हम बुरा नही मानेंगे बोलो।

राजेश _वैसे तुम दोनो में पारो कौन थी और चंद्रमुखी कौन?

यह प्रश्न सुनते ही निशा राज की ओर देखा, राज भी निशा का रिएक्शन जानने के लिए निशा की ओर देखा दोनो की नजरे मिली।

राजेश को लगा की निशा नाराज हो गई।

राजेश _सॉरी गलती हो गई,शायद मैने गलत प्रश्न पूछ दिया।

सीमा _हंसते हुवे बोली, नही राज इसमें सॉरी की क्या बात है । मै तो चंद्रमुखी बनी थींऔर निशा पारो।

सीमा _वैसे राज इस बार स्टूडेंट ऑफ द ईयर के लिए आपका तैयारी कैसी चल रहीं।
सुना है इस बार रोहन , आपको चुनौती देने के लिए काफी तैयारी कर रहा है। पिछले बार सेकंड पोजिशन पर था।

रोहन निशा के ही क्लास में था वह भी एक अमीर बाप का इकलौता लड़का था। वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब प्राप्त करना चाहता था। पिछले वर्ष वह राजेश से पिछे रह गया।

राजेश _अच्छा लगा सुनकर चलो कोई तो है मुझे चुनौती देना चाहता है। वैसे पिछले वर्ष भी काफी अच्छी कोशिश की थी।

वैसे सीमा तुम किसे इस खिताब में देखना चाहोगी?

सीमा _हम तो आप ही को इस खिताब में देखना चाहते हैं। रोहन में तो ईगो भरा है।
अब वे कालेज के काफी नजदीक पहुंच गए थे।

राजेश _पता, नही इंसान आख़िर ईगो क्यू करता है। धन दौलत तो कमाया जा सकता है? पर इज्जत और मान सम्मान तो व्यक्ति अपने व्याहार से प्राप्त करता है। हमे सब के साथ घुलमिलकर रहना चाहिए।
अगर हम लोगो से अलग और दूर दूर रहे तो जिंदगी एक दिन बोझिल हो जायेगी।

यह जिंदगी तो चार दिनों की है। सबके साथ प्यार बांटकर और हंसते गाते बिताना चाहिए।
क्यू की जिंदगी न मिलेगी दोबारा।

सीमा _राज तुम बिल्कुल सही कह रहे हो।

इधर निशा राजेश की बातो को बड़ी ध्यान से सुन रही थी। उसे लग रही थी की राज ने यह बाते उनके लिए कही है।

राजेश _लो हम कालेज पहुंच गए।

वे सभी कार से उतरे राजेश, ने जाने से पहले निशा को एक बार फिर से धन्यवाद कहा।

इस बार निशा ने बोला _इसमें थैंक्स की क्या बात है राज क्या तुम हमारी मदद नहीं करोगे यदि हम किसी मुस्किल में हो।

निशा और राजेश एक दुसरे के आंखो में देखने लगे।

राजेश _तुमने बिल्कुल सही कहा निशा जी हम सबको एक दूसरे की मदद करनी चाहिए। क्यू कि

सीमा _ये जिंदगी मिलेगी न दोबारा! और सीमा हसने लगी।

राजेश अपने दोस्तो के पास निशा सीमा और स्वीटी अपने क्लास की ओर जाने लगीं।

जाते जाते सीमा निशा से बोली वैसे

सीमा _वाह मैमसाब, राज से बड़ी अच्छी बात कही तुमने वैसे हिम्मत जुटाई लाई कैसे तुम तो लडको से बात करना पसंद नहीं करती लगता है राज के बातो का असर है और वो हसने लगी।

निशा _चुप रह नही तो पिटेगी मेरे हाथों से तुम्हे तो कुछ ज्यादा बोलने की बीमारी चढ़ी है। और ये क्या मेम साब मेम साब बोले जा रही थी। राजेश क्या समझेगा मेरे बारे में।

सीमा _ओ तो मुझे अच्छा लगता है तुम्हे मेम साब कहना इसलिए बोलती हू। सॉरी। जी अब नही कहूंगी।

वैसे मेम साब शब्द तुमको शूट करता है। और वह मुंह बन्द कर हसने लगी।

निशा _तुम सुधरोगे नही। और वह सीमा को घूरकर देखने लगी।

इधर कालेज में उस समय मौजूद सभी लोग आश्चर्य में थे। राजेश को निशा के कार से उतरते देख।

राजेश जब भगत के पास गया _

भगत _भाई आपून आज बहुत खुश है।

राजेश _क्यू बे, क्या हो गया।

भगत _शूट करता है भाई,,,,अपने दायिने हांथ की तर्जनी और अंगूठा से गोला बनाकर इशारा करते हुवे कहा।

राजेश _क्या बोल रहा है बे मैं समझा नही।

भगत _जोड़ी भाई जोड़ी।

राजेश _किसकी जोड़ी बे।

भगत _बाजू में बैठे अपने दोस्तो से कहा। अबे तुम लोग भी कुछ बोलो।

अन्य दोस्त एक साथ बोले मस्त जोड़ी है भाई।
राजेश _किसकी जोड़ी बे क्या bake जा रहे बे ।

भगत _तेरी और निशा की भाई भगत कैंटीन में चाय पीते हुए कहा।

राजेश हस्ते हुवे कहा अबे क्या बकवास कर रहे हों ऐसा कुछ भी नहीं और उसने दोस्तो को सारी बातें बताई।

भगत _अरे भाई ऐसी बात है हम तो कुछ और ही समझ गए थेऔर मै ये कैसे भुल गया की तुमको तो लड़कियों में इंट्रेस्ट नही। सॉरी भाई।

इधर रोहन को जब पता चला की राजेश और निशा कार में एक साथ आए हैं उसके दिल में सांप लौट गया। क्यू की वह निशा को पाना चाहता था।

उसका इस कॉलेज में एडमिशन लेने के पीछे उद्देश्य भी यही था, निशा को पाना।

और वह हर एक उपाय कर रहा था निशा का दिल जीतने। पर अभी तक वह निशा का दिल जीत नही पाया था।
दरअसल रोहन एक बडी कंपनी के मालकिन रीता विवेक मेहता का लड़का था। विशाल एंड सुजाता ग्रुप इनका प्रतिद्वंदी था कई मौकों पर रीता और सुजाता के बीच प्रतिद्वंदिता में सुजाता आगे निकल जाती थी। और रीता अपने आप को अपमानित महसूस करती थी वह सुजाता को अपने से नीचा दिखाने के प्रयास में थी।

वह रोहन को12के बाद विदेश पढ़ना न भेजकर, उसी कालेज में दाखिला दिला दी जिसमे निशा ने एडमिशन ली। ताकि रोहन निशा को अपने प्यार के जाल में फसा सके, और निशा को अपना बहु बनाकर सुजाता से अपने अपमानो का बदला ले सके।

लेकीन रोहननिशा का दिल अभी तक नही जीत सका था। रीता ने ही रोहन से कहा की वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब जीते जिससे निशा तुम्हारी ओर इंप्रेस हो।

और रोहन की तैयारी के लिए ट्रेनर भी रख लिया था। पर स्टूडेंट ऑफ द ईयर बनना इतना आसान नहीं है उसके लिए खेल, कला और शिक्षा तीनों क्षेत्रों में बेस्ट परफॉर्मेंस देना होगा।
Bohot khoob. Kya Sama Bandhan hai bhai. Lagta hai ki Nisha bhi chudegi rajesh bhai se.
 

Ek number

Well-Known Member
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173
राजेश ने कार स्टार्ट किया और वे सभी कालेज को निकल पड़े। रास्ते में,,

राजेश _थैंक्स सीमा हेल्प के लिए।

सीमा _थैंक्स मेरा नही, निशा का कीजिए राज, क्यू की कार तो निशा का है और तुम लोगो को निशा ने ही देखा और कार रुकवाई।

राजेश _ओह क्या सच में, थैंक्स निशा।

निशा ने अपना सिर हिलाया। पर कुछ बोली नहीं।

राजेश _सीमा जी, लडके लोगो का ख्याल निशा जी के बारे में बिल्कुल गलत है।

सीमा _क्या कहते है? लडके हमारे निशा जी के बारे में।

राजेश _यही की निशा जी बहुंत घमंडी है इन्हे अपने दौलत का बहुत घमंड है। वह किसी से ढंग से बात नही करती।

सीमा _हमारी निशा के बारे में ठीक से ,लोग जानते नही है न इसलिए गलत धारणाएं रखते हैं।
वैसे आप क्या सोचते हैं हमारी निशा के बारे में।

राजेश _पहले तो आप लोगो से ठीक से मिला ही नहीं था, पर अब कह सकता हूं की निशा जी तो दिल की अच्छी एवम हेल्पिंग नेचर की है।

सीमा _वो तो है पर सच बात तो ये है कि हमारी निशा को लडको पे ज्यादा इंट्रेस्ट नही है इसलिए ज्यादा उनसे घुलती मिलती नही है। न ही ज्यादा लडको से बात करती है।

राजेश _ओह रियली, वैसे आप दोनो एक कुशल नृत्यांगना है पिछले वर्ष वार्षिक समारोह में आप दोनो ने कमाल का डांस की थी वो क्या गाना था?

हा,,, याद आया,, दिल डोला re,डोला re , डोला दिल डोला,,,,,
राजेश गीत गुनगुनाने लगी,,,

सीमा _हंसते हुवे,क्या हमारा डांस सच में अच्छा लगा?।

राजेश _और नही तो क्या लोग आप लोगो की कितनी तारीफ कर रहे थे। वैसे एक बात पूछूं अगर आप लोग बुरा न मानो तो,,

सीमा _राज हम बुरा नही मानेंगे बोलो।

राजेश _वैसे तुम दोनो में पारो कौन थी और चंद्रमुखी कौन?

यह प्रश्न सुनते ही निशा राज की ओर देखा, राज भी निशा का रिएक्शन जानने के लिए निशा की ओर देखा दोनो की नजरे मिली।

राजेश को लगा की निशा नाराज हो गई।

राजेश _सॉरी गलती हो गई,शायद मैने गलत प्रश्न पूछ दिया।

सीमा _हंसते हुवे बोली, नही राज इसमें सॉरी की क्या बात है । मै तो चंद्रमुखी बनी थींऔर निशा पारो।

सीमा _वैसे राज इस बार स्टूडेंट ऑफ द ईयर के लिए आपका तैयारी कैसी चल रहीं।
सुना है इस बार रोहन , आपको चुनौती देने के लिए काफी तैयारी कर रहा है। पिछले बार सेकंड पोजिशन पर था।

रोहन निशा के ही क्लास में था वह भी एक अमीर बाप का इकलौता लड़का था। वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब प्राप्त करना चाहता था। पिछले वर्ष वह राजेश से पिछे रह गया।

राजेश _अच्छा लगा सुनकर चलो कोई तो है मुझे चुनौती देना चाहता है। वैसे पिछले वर्ष भी काफी अच्छी कोशिश की थी।

वैसे सीमा तुम किसे इस खिताब में देखना चाहोगी?

सीमा _हम तो आप ही को इस खिताब में देखना चाहते हैं। रोहन में तो ईगो भरा है।
अब वे कालेज के काफी नजदीक पहुंच गए थे।

राजेश _पता, नही इंसान आख़िर ईगो क्यू करता है। धन दौलत तो कमाया जा सकता है? पर इज्जत और मान सम्मान तो व्यक्ति अपने व्याहार से प्राप्त करता है। हमे सब के साथ घुलमिलकर रहना चाहिए।
अगर हम लोगो से अलग और दूर दूर रहे तो जिंदगी एक दिन बोझिल हो जायेगी।

यह जिंदगी तो चार दिनों की है। सबके साथ प्यार बांटकर और हंसते गाते बिताना चाहिए।
क्यू की जिंदगी न मिलेगी दोबारा।

सीमा _राज तुम बिल्कुल सही कह रहे हो।

इधर निशा राजेश की बातो को बड़ी ध्यान से सुन रही थी। उसे लग रही थी की राज ने यह बाते उनके लिए कही है।

राजेश _लो हम कालेज पहुंच गए।

वे सभी कार से उतरे राजेश, ने जाने से पहले निशा को एक बार फिर से धन्यवाद कहा।

इस बार निशा ने बोला _इसमें थैंक्स की क्या बात है राज क्या तुम हमारी मदद नहीं करोगे यदि हम किसी मुस्किल में हो।

निशा और राजेश एक दुसरे के आंखो में देखने लगे।

राजेश _तुमने बिल्कुल सही कहा निशा जी हम सबको एक दूसरे की मदद करनी चाहिए। क्यू कि

सीमा _ये जिंदगी मिलेगी न दोबारा! और सीमा हसने लगी।

राजेश अपने दोस्तो के पास निशा सीमा और स्वीटी अपने क्लास की ओर जाने लगीं।

जाते जाते सीमा निशा से बोली वैसे

सीमा _वाह मैमसाब, राज से बड़ी अच्छी बात कही तुमने वैसे हिम्मत जुटाई लाई कैसे तुम तो लडको से बात करना पसंद नहीं करती लगता है राज के बातो का असर है और वो हसने लगी।

निशा _चुप रह नही तो पिटेगी मेरे हाथों से तुम्हे तो कुछ ज्यादा बोलने की बीमारी चढ़ी है। और ये क्या मेम साब मेम साब बोले जा रही थी। राजेश क्या समझेगा मेरे बारे में।

सीमा _ओ तो मुझे अच्छा लगता है तुम्हे मेम साब कहना इसलिए बोलती हू। सॉरी। जी अब नही कहूंगी।

वैसे मेम साब शब्द तुमको शूट करता है। और वह मुंह बन्द कर हसने लगी।

निशा _तुम सुधरोगे नही। और वह सीमा को घूरकर देखने लगी।

इधर कालेज में उस समय मौजूद सभी लोग आश्चर्य में थे। राजेश को निशा के कार से उतरते देख।

राजेश जब भगत के पास गया _

भगत _भाई आपून आज बहुत खुश है।

राजेश _क्यू बे, क्या हो गया।

भगत _शूट करता है भाई,,,,अपने दायिने हांथ की तर्जनी और अंगूठा से गोला बनाकर इशारा करते हुवे कहा।

राजेश _क्या बोल रहा है बे मैं समझा नही।

भगत _जोड़ी भाई जोड़ी।

राजेश _किसकी जोड़ी बे।

भगत _बाजू में बैठे अपने दोस्तो से कहा। अबे तुम लोग भी कुछ बोलो।

अन्य दोस्त एक साथ बोले मस्त जोड़ी है भाई।
राजेश _किसकी जोड़ी बे क्या bake जा रहे बे ।

भगत _तेरी और निशा की भाई भगत कैंटीन में चाय पीते हुए कहा।

राजेश हस्ते हुवे कहा अबे क्या बकवास कर रहे हों ऐसा कुछ भी नहीं और उसने दोस्तो को सारी बातें बताई।

भगत _अरे भाई ऐसी बात है हम तो कुछ और ही समझ गए थेऔर मै ये कैसे भुल गया की तुमको तो लड़कियों में इंट्रेस्ट नही। सॉरी भाई।

इधर रोहन को जब पता चला की राजेश और निशा कार में एक साथ आए हैं उसके दिल में सांप लौट गया। क्यू की वह निशा को पाना चाहता था।

उसका इस कॉलेज में एडमिशन लेने के पीछे उद्देश्य भी यही था, निशा को पाना।

और वह हर एक उपाय कर रहा था निशा का दिल जीतने। पर अभी तक वह निशा का दिल जीत नही पाया था।
दरअसल रोहन एक बडी कंपनी के मालकिन रीता विवेक मेहता का लड़का था। विशाल एंड सुजाता ग्रुप इनका प्रतिद्वंदी था कई मौकों पर रीता और सुजाता के बीच प्रतिद्वंदिता में सुजाता आगे निकल जाती थी। और रीता अपने आप को अपमानित महसूस करती थी वह सुजाता को अपने से नीचा दिखाने के प्रयास में थी।

वह रोहन को12के बाद विदेश पढ़ना न भेजकर, उसी कालेज में दाखिला दिला दी जिसमे निशा ने एडमिशन ली। ताकि रोहन निशा को अपने प्यार के जाल में फसा सके, और निशा को अपना बहु बनाकर सुजाता से अपने अपमानो का बदला ले सके।

लेकीन रोहननिशा का दिल अभी तक नही जीत सका था। रीता ने ही रोहन से कहा की वह स्टूडेंट ऑफ द ईयर का खिताब जीते जिससे निशा तुम्हारी ओर इंप्रेस हो।

और रोहन की तैयारी के लिए ट्रेनर भी रख लिया था। पर स्टूडेंट ऑफ द ईयर बनना इतना आसान नहीं है उसके लिए खेल, कला और शिक्षा तीनों क्षेत्रों में बेस्ट परफॉर्मेंस देना होगा।
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