रूबी धीरे धीरे बोझल क़दमों से चलती हुई अपने कमरे तक पहुंची और बेड पर लेट गई। वो साहिल द्वारा किए गए अपनाम की आग में जल रही थी और उसकी आंखो से रह रह कर आंसू टपक रहे थे। उस अपने सगे बेटे से इतनी बेरुखी की उम्मीद नहीं की, इस तरह को कोई दूसरो का भी अपमान नही करता जिस तरह से साहिल ने उसका किया था। रूबी जानती थी कि इसमें अनूप के साथ साथ उसकी खुद की भी गलती हैं क्योंकि अगर वो पहले ही अपने बेटे को सब कुछ बता देती तो आज ये दिन नहीं देखना पड़ता।
उसने एक नजर उठाकर अनूप की तरफ देखा तो मजे से चैन की नींद सोया हुआ था तो उसे अनूप की शक्ल से ही नफरत होने लगी और उसका मन किया कि अभी उसका सिर फोड़ दे लेकिन वो ऐसा नहीं कर पाई। वो चाहती थी कि पहले वो सारी सच्चाई अपने बेटे साहिल के आगे लाए ताकि उसे अपने बाप के असली रूप का पता चल सके और रूबी अपने बेटे की नजरो में खुद को सही साबित कर सके। ये सब सोचते धीरे धीरे उसकी आंख बंद हो गई और वो नींद में चली गई।
अगले दिन सुबह रूबी एक नई उम्मीद के साथ उठी कि आज तो कम से कम उसके हाथ कुछ ना कुछ जरूर लगेगा क्योंकि प्रिया ऑफिस में कैमरा लगा चुकी थी। रूबी ने सबसे पहले योगा सेंटर के ग्रुप में एक मेसेज छोड़ दिया कि आज वो नहीं अा पायेगी। शांता घर की सफाई कर रही थी तभी साहिल उठकर अपने कमरे से बाहर आया तो शांता ने उसे एक स्माइल दी लेकिन साहिल उसकी तरफ नफरत से देखते हुए बाथरूम में घुस गया। शांता को हैरानी हुई कि ये साहिल को अचानक से क्या हो गया और अपने काम में लग गई।
वहीं अनूप करीब आठ बजे के बाद ऑफिस की तरफ निकल गया। रूबी ने खाना टेबल पर लगा दिया था और साहिल को आवाज दी
" साहिल बेटा मैंने तुम्हारे लिए पनीर पराठा तैयार कर दिया हैं अा जाओ नाश्ता कर लो तुम।
अंदर से ही साहिल की आवाज अाई:" मुझे भूख नहीं हैं अभी, मैं बाहर जाऊंगा थोड़ी देर बाद वहीं खा लूंगा।
रूबी जानती थी कि उसका बेटा उससे बहुत ज्यादा नाराज हैं इसलिए नाश्ते की थाली लेकर उसके कमरे की तरफ चल पड़ी। रूबी को अपने कमरे में देखकर साहिल गुस्से से बोला:"
" मम्मी आपको शर्म नहीं आती क्या ? मुझे नहीं खाना आपके हाथ से बना हुआ कुछ भी, मुझे नफरत हैं आपकी सूरत से भी, जाओ अब यहां से !!
रूबी : देख साहिल कभी कभी जो हमें दिखाया जाता हैं वो सच नहीं होता, तू मुझे एक मौका दे बस खुद को सही साबित करने का बेटा।
साहिल:" रहने दो मम्मी आप, अब आप पापा के बाद पता नहीं अगला आरोप किस पर लगाओगी ?
रूबी थोड़ा गुस्से से:" साहिल बस बहुत हो गया, तुम मेरे बेटे हो इसलिए रात से मैं तुम्हे बर्दाश्त कर रही हूं, मेरी भी अपनी इज्जत हैं लोग मुझे कितना मानते हैं ये तुम अपनी आंखो से देख चुके हो खुद ।
साहिल के होंठो पर हल्की सी स्माइल अाई और तंज कसते हुए कहा:"
" और आपकी सच्चाई जब उन लोगो के सामने आएगी तब वहीं लोग जो आज आपको पसंद करते है कल आपके नाम पर थूकना भी पसंद नहीं करेंगे।
रूबी:' साहिल तुम्हे मुझे एक मोका देना चाहिए बेटा, तुम्हारे सामने सब कुछ साफ हो जाएगा।
साहिल:" और अगर नहीं हुआ तो ?
रूबी आगे बढ़ी और साहिल के सिर पर हाथ रख कर बोली
" तेरे सिर की कसम बेटा मैं तुझे कभी मुंह नहीं दिखाऊंगी।
साहिल को अपनी मा के उपर यकीन करने को मन किया क्योंकि वो जानता था कि उसकी मम्मी दुनिया मा सबसे ज्यादा प्यार उससे ही करती हैं।
साहिल:" ठीक हैं लेकिन आपको ये पहला और आखिरी मौका होगा।
रूबी ने जुबान से बिना कुछ बोले अपनी गर्दन हिला दी और साहिल को बोली:'
" बेटा चलो तुम पहले नाश्ता कर लो फिर मै तुम्हे कुछ दिखाती हूं आज जिसके बाद तुम सब समझ जाओगे।
साहिल:" नहीं मम्मी अभी नहीं, पहले आप वो मुझे दिखाओ जो आप दिखाना चाहती हों।
रूबी ने मोबाइल निकाला और प्रिया को कॉल किया।
रूबी:" हेल्लो कहां हो तुम ? कितनी देर बाद घर अा जाओगी ?
प्रिया:" मैडम मैं बस पहुंचने वाली हूं, कोई पांच मिनट और लगेगे।
थोड़ी देर बाद ही प्रिया अा गई तो उसे देखते ही साहिल हैरान हो गया और बोला:"
" प्रिया मैडम आप यहां ? अापको तो इस टाइम ऑफिस में होना चाहिए था।
प्रिया:" सर वो मुझे आपकी मम्मी ने बुलाया है कुछ जरूरी काम था आज इसलिए।
रूबी तभी हॉल में अा गई और प्रिया ने अनूप के ऑफिस के खुफिया कमरे के कैमरे का कनेक्शन सामने दीवार पर टंगी हुई एल ई डी से कर दिया। रूबी नहीं चाहती थी कि प्रिया उसके पति की कोई भी हरकत देखे इसलिए बोली:"
" आओ प्रिया मैं तुम्हे उपर छोड़ आती हूं तुम आराम से वहीं बैठ जाओ थोड़ी देर।
प्रिया समझ हुई कि रूबी क्यों ऐसा कर रही है इसलिए वो बिना किसी बोले चुपचाप उपर की तरफ चल पड़ी। रूबी प्रिया को उपर छोड़कर अा गई। रूबी के जाते ही प्रिया ने अपना मोबाइल निकाला और कैमरा सॉफ्टवेयर ऑन किया तो अनूप का ऑफिस उसके मोबाइल पर लाइव आने लगा। साहिल और रूबी दोनो हॉल बैठे हुए थे और कैमरे का फोकस अनूप के ऑफिस पर था।
थोड़ी देर के बाद कैमरे पर लीमा नजर आईं जो ऑफिस के अंदर घुस गई थी। लीमा आराम से अनूप की सीट पर बैठ गई तो साहिल को हैरानी हुई क्योंकि उसे अपने बॉस की कुर्सी पर नहीं बैठना चाहिए था।
साहिल:" मम्मी ये तो लीमा हैं पापा की सेक्रेटरी लेकिन ये पापा की कुर्सी पर क्यों बैठी हैं ?
रूबी को पता था कि अभी आगे बहुत कुछ होने वाला है इसलिए बोली:"
" शायद बेटा लीमा का सपना हो हैं कि वो भी एक दिन अपना खुद का ऑफिस खोले इसलिए बैठ गई हो।
साहिल:" लेकिन मम्मी फिर भी ये तो गलत हैं ना, ऐसे नहीं बैठना चाहिए।
इससे पहले कि रूबी कोई जवाब देती अनूप ऑफिस के अंदर दाखिल हुआ और उसने लीमा को अपनी सीट पर बैठे हुए देखकर एक स्माइल दी और बोला:'
" तुम एक कुर्सी पर बैठ कर बहुत ही स्मार्ट लग रही हो लीमा, अच्छा सुनो सिर में हल्का दर्द हो रहा हैं।
लीमा कुर्सी पर बैठे हुए ही कामुक अदा के साथ बोली:_
" मैं सिर दबा दू क्या ?
अनूप:" पहले तुम मुझे एक पैग बनाकर दो, शायद उससे आराम मिल जाए।
लीमा कुर्सी से उठ गई और बाथरूम में घुस गई और उसने शीशे के पीछे से जुड़े हुए रूम का दरवाजा खोल दिया तो एक शानदार कमरा अंदर नजर अाया जिसमे एक डबल बेड पड़ा हुआ था। रूबी समझ गई कि प्रिया सच बोल रही थी कि ऑफिस से जुड़ा हुआ एक कमरा भी हैं। वहीं कमरा देखते ही साहिल के दिमाग में धमाका सा हुआ क्योंकि ये तो बिल्कुल उसी तरह से खुफिया कमरा था जैसे उसके घर में चुदाई लोक बना हुआ है।
लीमा ने अलमारी खोली और दारू की बोतल निकाल कर एक लार्ज पैग बना दिया और उसने बहुत ही अदा के साथ अपनी ब्रा में हाथ डाला और वो पुड़िया बाहर निकाल ली जिसे वो पिछले कुछ महीने से अनूप को दारू में मिलाकर पिलाती अा रही थी।
लीमा ने रोज की तरह पैग के अंदर पुड़िया मिलाई और लेकर जैसे ही बाहर की तरफ चली तो उसकी नजर कैमरे पर पड़ी और डर के मारे उसके हाथ से ट्रे छूट गई, वो ट्रे पकड़ने के लिए नीचे की तरफ झुकी और उसकी ब्रा से पुड़िया निकल कर नीचे जा गिरी।
लीमा पूरी कोशिश के बाद भी ट्रे को पकड़ नहीं पाई और ग्लास फर्श से टकराकर टूट गया तो लीमा डर के मारे भागती हुई अनूप के पास अाई और बोली:"
" सर सर वो बहुत बड़ी गड़बड़ हो गई,
अनूप ने देखा कि लीमा के चहरे पर पसीना छलक रहा था और सांसे उखड़ी हुई थी और वो बहुत बुरी तरह से डर गई थी। अनूप एक झटके के साथ कुर्सी से खड़े होते हुए बोला:"
" क्या हुआ बताओ मुझे
लीमा:" सर वो अंदर कमरे में कैमरा लगा हुआ हैं।
अनूप के चेहरे पर हवाइयां उड़ने लगी और बोला:"
" क्या बकवास कर रही हो तुम ? मेरे और तुम्हारे सिवा उसके बारे में कोई नहीं जानता, फिर कैमरा कहां से अा गया ?
लीमा बुरी तरह से कांप रही थी और डरते हुए बोली:"
" मुझे नहीं पता सर लेकिन वहां सच में कैमरा लगा हुआ है।
अनूप:" एक काम करो जल्दी से प्रिया को बुलाओ क्योंकि सारे कैमरे की कंट्रोलिंग वो हूं करती हैं ऑफिस में।
लीमा ने झट से दरवाजा खोला और दौड़ती हुई बाहर चली गई लेकिन जल्दी ही निराश होती हुई वापिस लौट आई और बोली:"
" सर प्रिया तो आज नहीं अाई, आपने उसे छुट्टी दी हैं क्या ?
अनूप प्रिया के ना आने की बात सुनकर कांप उठा और बोला:_
" है भगवान ऐसा कैसे हो सकता हैं? इसका मतलब प्रिया को इस रूम के बारे में जानकारी थी और उसने है अंदर कैमरा लगाया और भाग गई। इसका मतलब साफ उसन है कि वो अंदर क्या हुआ हैं सब देख चुकी है। पता नहीं कब से कैमरा लगा हुआ था अंदर।
लीमा की तो हालत खराब हो गई थी क्योंकि इज्जत तो खराब होनी ही थी और साथ साथ ही उसका बुरी तरह से फंस जाना तय था क्योंकि वो जानती थी कि उसकी अनूप के पैग में पाउडर मिक्स करने का भी किसी को पता चल चुका था।
लीमा:" अब क्या होगा ? मेरी तो सारी इज्जत मिट्टी में मिल जाएगी। मैं तो किसी को मुंह दिखाने के काबिल नहीं रहूंगी।
अनूप:" एक काम करो जल्दी से गाड़ी निकालो और प्रिया के घर चलते हैं ताकि उसे पकड़ सके।
लीमा और अनूप ने गाड़ी निकाली और प्रिया के घर की तरफ दौड़ा दी। दूसरी तरफ साहिल और रूबी दोनो ये देखकर हैरान हो गए।
साहिल:" मम्मी ये तो ठीक उसी तरह का कमरा था जैसे अपने घर में बना हुआ है। इसका मतलब पापा झूठ बोल रहे थे कि उन्हें इसके बारे में नहीं पता हैं।
रूबी ने एक सुकून की सांस ली और बोली:"
" वो सब तो ठीक हैं लेकिन ये कमीनी लीमा तेरे पापा को पैग में क्या मिलाकर पिला रही है ?
साहिल:" हान मम्मी ये तो मैंने सोचा ही नहीं, इस लीमा का तो मैं मुंह तोड़ दूंगा।
रूबी कुछ सोचते हुई बोली:"
" बेटा उसकी ब्रा से पुड़िया निकल कर फर्श पर गिरी थी जिसका उसे पता नहीं चला, अगर वो पुड़िया हमारे हाथ लग जाए तो सब पता चल जाएगा।
साहिल:" आपकी बात तो ठीक हैं मम्मी, लेकिन सोचने वाली बात ये हैं कि लीमा ऐसा कर क्यों रही हैं इससे उसे क्या फायदा होगा ?
रूबी:" मुझे तो इस सब के पीछे नीरज की चाल नजर आ रही है बेटा।
साहिल:" लेकिन मम्मी वो तो पापा के दोस्त हैं वो भला ऐसा क्यों करेंगे ?
रूबी:" बेटा वो कितना नीच इंसान हैं मैं बहुत अच्छे से जानती हूं उसे, उसने तेरे पापा को पूरी तरह से अपने चंगुल में फसा लिया हैं। लेकिन पहले हम कुछ भी करके वो पुड़िया हासिल करनी होगी।
साहिल:" ठीक हैं मम्मी आज रात को पुड़िया मै निकाल लाऊंगा वहां से,।
रूबी:" लेकिन अगर उससे पहले ही वो लीमा या अनूप ने उठा की तो फिर ?
साहिल:" मम्मी जिस तरह से लीमा भागी थी उसे तो ये भी नहीं पता कि उसकी पुड़िया वहां गिर गई है और मुझे पक्का यकीन हैं कि जब तक वहां कैमरा लगा हुआ है पापा और लीमा उस कमरे में घुसने कि हिम्मत नहीं करेंगे"!
रूबी उसकी बात से सहमत हो गई और बोली:"
" बेटा क्या तुम्हे अब भी अपनी मा पर यकीन नहीं आया ?
साहिल:" मम्मी देखो एक बात तो साफ हैं कि पापा ने मुझसे जरूर कुछ ना कुछ झूठ तो बोला हैं लेकिन मेरा अपना मानना हैं कि एक पति चाहे कितना भी गिरा हुए क्यों ना हो वो अपनी पत्नी को किसी दूसरे के साथ सेक्स की कहानी की किताब और सेक्स करने के लिए नहीं कह सकता।
रूबी को हैरानी हुई कि अभी भी उसका बेटा उसका यकीन नहीं कर रहा हैं तो वो बोली:"
' बेटा एक दिन तुझे मुझ पर यकीन करना ही होगा बस थोड़े दिन और रुक जा, फिर सब कुछ शीशे कि तरह साफ हो जाएगा।
साहिल उदास होते हुए बोला:"
" मम्मी आपके चरित्र का तो बाद में फैसला होगा लेकिन आज पापा ने मेरी नजरो में अपनी इज्जत हमेशा के लिए खो दी हैं। लेकिन वो जैसे भी हैं मेरे पापा हैं और मुझे उन्हें इस साजिश से बचाना हो होगा। क्या आप मेरी मदद करेगी ?
रूबी:" देख साहिल वो तेरे पापा होने के साथ साथ मेरे पति भी है लेकिन मेरे मन में अनूप के लिए नफरत भर गई हैं लेकिन फिर भी मैं तेरे साथ हूं।
साहिल रूबी की बात सुनकर इतना तो समझ गया कि उसकी मा चाहे जैसी भी हैं लेकिन घर की इज्ज़त के लिए उसका साथ देने को तैयार हैं। कहीं ना कहीं पापा ने जरूर मम्मी का दिल दुखाया है और ये सब उसका ही नतीजा हैं।
उपर प्रिया भी इतना तो समझ गई थी अनूप और लीमा के बीच में कुछ चल रहा है लेकिन ये पुड़िया वाली बात उसके लिए पूरी तरह से हैरान कर देने वाली थी। उस समझ में नहीं अा रहा था कि लीमा ऐसा क्यों और किसके कहने पर कर रही है। वो समझ गई थी कि अब कैमरे पर और कुछ भी नहीं आने वाला लेकिन फिर भी वो इंतजार कर थी थी कि कब रूबी उपर आएगी। प्रिया को समझ नहीं आ रहा था कि अब वो कहां रहेगी क्योंकि लीमा और अनूप उसे ढूंढने के लिए उसके घर गए थे जहां वो पिछले कुछ टाइम से किराए पर रह रही थी।
कैमरा बंद होने के बाद रूबी उपर अा गई और प्रिया से बोली:"
" चलो आओ मैंने तुम्हारे लिए कुछ हल्का फुल्का खाने का इंतजाम कर दिया है आओ कुछ खा लो तुम।
प्रिया:" अरे मैडम उसकी कोई जरूरत नहीं थी आपने इतना कष्ट क्यों किया ? । अच्छा तो केमरे का क्या हुआ ?
रूबी:" अरे वो कमरे में तो अनूप ने अपने सोने के लिए बेड लगाया हुआ और और वहां छुप छुप कर दारू पीता है वो। मुझे लग रहा था कि उसका लीमा के साथ चक्कर चल रहा होगा लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ।
प्रिया ने एक नजर रूबी पर डाली और उसके साथ नीचे की तरफ चल पड़ी। प्रिया सोच रही थी कि यहां ये रूबी भी कुछ जरूरत से ज्यादा तेज है। सब कुछ इतनी आसानी से छुपा गई जबकि मैं तो सब कुछ खुद देख चुकी हूं।
नीचे जाने के बाद रूबी ने अंदर से साहिल को भी बुला लिया और तीनो बैठ कर नाश्ता करने लगे। शांता अंदर से जैसे ही परांठे लेकर अाई टी उसने प्रिया को देखा तो उसे अपनी बेटी की याद आ गई।
प्रिया आराम से बैठी हुई नाश्ता कर रही थी जबकि साहिल बार बार उसकी तरफ देख रहा था। रूबी तो नाश्ता करते हुए जैसे अपनी ही दुनिया में खोई हुई थी और खुद की सही साबित कैसे रहे ये सोच रही थी।
शांता ने गौर से प्रिया के चेहरे को देखा तो उसे लगा जैसे उसकी बेटी सपना वापिस लौट आई हैं। शांता उसे एक परांठा और देते हुए बोली:"
"लो बेटी ये गर्म गर्म परांठा खाओ तुम ।
प्रिया ने नजरे उठाकर शांता की तरफ देखा और एक प्यारी सी स्माइल दी तो शांता को याद अा गया कि उसकी बेटी के गालों में भी बिल्कुल ऐसे ही स्माइल करते हुए गड्ढे पड़ते थे जैसे प्रिया के गालों में पड़ रहे है।
शांता:" रूबी बेटी आपने बताया नहीं कि ये नई मेम साहब कौन है ?
रूबी :" अरे मा जी ये तो प्रिया हैं अनूप के ऑफिस में काम करती हैं। मैं कल ऑफिस गई तो मुझे ये अच्छी लगी इसलिए घर आने को बोल दिया था।
शांता:" अच्छा बेटी, प्रिया बेटी तुम्हारे घर में कौन है और ?
प्रिया एक पल के लिए तो बुरी तरह से डर गई क्योंकि उसे शांता से इस तरह के सवाल की उम्मीद नहीं थी लेकिन फिर अपने आपको संभालते हुए बोली:"
" जी मम्मी पापा हैं बस।
प्रिया के इतना बोलते ही शांता की सोच को ब्रेक अपने आप लग गया और बोली:".
" ठीक हैं बेटी, तुम बहुत अच्छी लड़की हो प्रिया, भगवान तुझे हमेशा खुश रखे।
उसके बाद शांता अंदर किचेन में चली गई जबकि तीनो नाश्ता कर चुके थे।
प्रिया:" अच्छा मैडम मैं अब चलती हू , मेरी जॉब का क्या होगा अब ?
रूबी ने जेब से कुछ पैसे निकाले और प्रिया की तरफ बढ़ाते हुए बोली:"
" लो ये रख लो, जल्दी ही मैं तुम्हे एक अच्छी जॉब दिलवा दूंगी।
प्रिया:" अरे नहीं मैडम, मुझे पैसे नहीं चाहिए, मैं बहुत स्वाभिमानी लड़की हूं मुझे बस आप कोई जॉब दिलवा देना जल्दी ही।
रूबी:" ठीक हैं प्रिया, एक दो दिन रुको, मैं करती हूं कुछ।
इतना कहकर रूबी ने वो रुपए जबरदस्ती उसके हाथ में थमा दिए और प्रिया कुछ ना कर सकी और रुपए लेकर घर की तरफ चल पड़ी। दूसरी तरफ लीमा और अनूप प्रिया के घर के सामने खड़े थे और बेल बजाई तो एक औरत बाहर निकल अाई।
औरत:" जी बोलिए क्या काम था ?
लीमा:" जी मुझे प्रिया से मिलना था कुछ जरूरी काम हैं।
औरत:" प्रिया, कौन प्रिया यहां तो कोई प्रिया नहीं रहती हैं
लीमा और अनूप दोनो ये सुनकर परेशान हो उठे और लीमा बोली:"
" जी एड्रेस तो ये ही दिया था मुझे,
औरत:" अरे आपको गलत एड्रेस दिया गया हैं। यहां तो इस पूरी कॉलोनी में कोई प्रिया नाम कि लड़की नहीं रहती हैं।
इतना कहकर उस औरत ने गेट बंद कर लिया।अनूप के मुंह पर 12 बज चुके थे और लीमा को लग रहा था जैसे उसने अपनी आखिरी उम्मीद भी खो दी थी। दोनो के पास अब कोई रास्ता नहीं बचा था इसलिए वापिस ऑफिस की तरफ लौट पड़े।
लीमा बेहद डरी हुई थी क्योंकि वो जानती थी कि उसका राज अब खुल जाएगा और अनूप उसे ज़िंदा नहीं छोड़ेगा इसलिए वो कुछ सोचने लगी और अनूप को बोली:"
" एक मिनट गाड़ी रोकना प्लीज़, मुझे बाथरूम जाना हैं।
अनूप ने गाड़ी रोक दी और लीमा सड़क के पास ही बने एक पब्लिक टॉयलेट में घुस गई। अनूप को समझ नहीं आ रहा था कि उसकी साथ ये सब क्या हो रहा हैं और ज्यादा सोचने की वजह से उसके सिर में दर्द होने लगा तो उसने आंखे बंद कर ली। दूसरी तरफ लीमा तो किसी जंगली बिल्ली की तरह मौके की तलाश में थी और अनूप पर नजर गड़ाए हुए थी। जैसे ही पीछे से एक बस अाई तो लीमा उसमे सवार हो गई।
जब काफी देर के बाद भी लीमा नहीं अाई तो अनूप को लगा कि कहीं उसके साथ कोई गड़बड़ तो नहीं हो गई। इसलिए वो गाड़ी से उतरा और पब्लिक टॉयलेट में घुस गया लेकिन लीमा उसे कहीं नहीं दिखाई दी तो उसने परेशान होकर उसका नंबर मिलाया लेकिन नंबर भी बंद मिला। कहीं ये साली भी तो भाग नहीं गई, उफ्फ ये भगवान ये कहां फस गया मैं। प्रिया ने कैमरा लगा दिया, लीमा भाग गई मेरे साथ आखिर से सब क्या हो रहा हैं। दुखी हताश निराश परेशान अनूप अपने ऑफिस की तरफ लौट पड़ा।