राधा रेखा और रघु की शादी की शहनाई मंडप तक पहुंच चुकी है। देवा भी पुरा पंडितगिरि दिखा रहा है नियम का पक्का है बंदा। बिना चोली के मंडप में बैठने का नियम।
अरे ये क्या पार्वती रघु से शादी करके बच्चा इसलिए तो नहीं चाहती क्योंकि रघु पैसा वाला है ? और कल को बच्चे के नाम पर जायदाद क्लेम कर सके? बहुत तगड़ी प्लानिंग लिये बैठी है ऐसा सिर्फ मेरा अनुमान है बाकी लेखक महोदय ही सही बता सकते हैं।
लक्ष्मी के बारे में क्या कहूं है तो पार्वती की ही बेटी, धर्म कर्म में अव्वल, संस्कारी पतिव्रता ही बनेगी।
भाई कहानी जल्दी खत्म मत करना कम से कम 2-4 बच्चे तो होने देना। मम्मी पापा ना बुलाये तो फिलिंग की तो वाट लग जाती है।