Ben Tennyson
Its Hero Time !!
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भाई मेरे साथ भी कुछ ऐसा ही था कम उम्र में एक ऐसी वेबसाइट ओपन की उस समय में उस लीगल उम्र का भी नहीं था पर कहानी पढ़ने का चस्का लग गया कि अकाउंट खोल लिया गलत उम्र भरकर और फिर चुपके चुपके ऐसे कहानी पढ़ता था पहले छोटी-छोटी कहानी पढ़ता ऐसे ही एक दिन एक बंदे का कमेंट पढ़ा और फिर उसकी प्रोफ़ाइल खोली और ऐसे हीये नियति का खेल है......... ...........
मैं Orkut, AOL से एक दिन Yahoo ग्रुप HILMS प्रेम गुरु भाई के ग्रुप पर पहुंचता हूँ, वहाँ से पता नहीं कितनी पॉर्न और सेक्स स्टोरीस फोरम्स पर होते हुये xossip पर और वहाँ भी अचानक एक कमेंट में मेम्बर प्रोफ़ाइल पर Image के नीचे ये पंक्तियाँ पढ़ता हूँ.......
रात भर मोबाइल पर चलती हैं उँगलियाँ
सीने पर किताब रखकर सोये, जमाना गुजर गया
बस वहीं लगा कि ये कोई ऐसा है जो मेरे मन से जुड़ा हुआ है....... और द डार्क साइड सागा पढ़ते ही तो मुझे लगा कि कोई मेरे मन को पढ़कर शब्दों में उतार रहा है
यहाँ भी मुसाफिर वाली ID से शुरू हुई कहानी पढ़ते ही मेंने अपके शब्दों को पहचान लिया...... चाहे आपको ना पहचाना...........
शायद नियति ने हमारे लिए कुछ सोचा है इसीलिए हमें मिलाने की कोशिश में लगी हुयी है ............ कुछ अद्भुत, अविस्मरणीय, अकल्पनीय........ और शायद असंभव भी ......
पिछले जन्म के भाई हैं शायद हम ............. क्योंकि इस जन्म में तो कुम्भ के मेले में हम बिछड़े नहीं
मुसाफिर हो तुम भी, मुसाफिर हैं हम भी
किसी मोड पर फिर मुलाक़ात होगी
एक दिन हवेली पढ़ी और करीब दो ढाई महीने में पढ़ कर फौजी भाई उस जैसी कहानी ढूंढता रहता फिर ना जाने कितने ही लेखकों की कहानियां पढ़ी....xbii से लेकर X forum तक का सफर ऐसे ही शुरू हुआ....उससे पहले गेस्ट मोड में कहानी पढ़ता था...पहली कहानी भी शायद 2008/09 में पढ़ी थी उस समय गूगल पर गालियां सर्च करता और रिजल्ट में xbii आता फिर वहीं से ये सफर शुरू हुआ .....