जीवन में कई बार ऐसे मौके आते हैं जब इंसान अपने आप को एक दोराहे पर खड़ा पाता है। हालांकि, उस वक्त सही फैसला करना काफी मुश्किल हो जाता है पर यदि कोई हो उस व्यक्ति के साथ, जो उसे सही रास्ता दिखाए तब मुश्किलें आसान हो जाती हैं। विक्रम ने शुरू से ही खुद को दोराहे पर ही खड़ा पाया है, पहले शुभ्रा से प्यार का इज़हार करे या न करे, उसके बाद शुभ्रा को अपने क्षेत्रपाल होने के चलते किए गए पाप की हकीकत बताए या ना बताए, फिर भैरव सिंह के नाम का सिक्का सबसे ऊंचा करने के लिए जो कुछ भी विक्रम करता आया... वो सब उसे शुभ्रा से, अपनी बहन नंदिनी से, और अब शायद खुद की हकीकत से भी दूर ले आया है।
विश्वा के साथ हुई लड़ाई के बाद विक्रम पर बेहद गहरा असर पड़ा है और एक बार फिर वो सही फैसला लेने से शायद चूक गया है। उसे भ्रम है के इस बार उसके पास मात्र एक ही रास्ता है, आने वाले वक्त में वो एक दफा फिर खुदको दोराहे पर खड़ा पाएगा। शुभ्रा का इंतज़ार अभी लंबा होने वाला है। पर कहीं न कहीं मुझे लगता है के अगर शुभ्रा अपने प्रेम से विक्रम को सही मार्ग दिखाने की कोशिश करे तो निश्चित ही वो भैरव सिंह से अलग हो ही जाएगा। अब देखना ये है के विक्रम को जो कसम उसकी मरती हुई मां ने दी थी, जिसे वो गलत समझ बैठा है, उस कसम का सही अर्थ उसे कौन समझाएगा?
रॉकी के मंसूबों से नंदिनी पूरी तरह अवगत है और इसमें कोई शख नहीं के जो घड़ी उसने रॉकी को भेंट में दी है, वो उसके किसी प्लान का ही हिस्सा है। मुझे लगता है के जल्द ही रॉकी का काम भी तमाम होने वाला है। शायद विश्वा भी आगे चलकर इस मामले में हिस्सा हो सकता है। खैर, अब देखना ये है के विश्वा को नंदिनी के साथ बिताए वो पुराने पल याद हैं या नहीं, जहां तक मैं अभी तक समझ पाया हूं विश्वा को, वो जरूर नंदिनी के जन्मदिन पर कुछ खास करेगा। अब देखना ये है के वो खास चीज नंदिनी के लिए होगी या भैरव सिंह के लिए।
वीर और अनु की नजदीकियां भी बढ़ रही हैं। कहानी में अनु के आने से एक नया ही माहौल बन जाता है, उसकी मासूमियत और बचपने का ही वीर दीवाना हुआ है, पर देखना होगा के क्या वो सचमुच में इतनी नादान है या किसी कारण से नाटक कर रही है?
साथ ही पिनाक पर जो हमले हो रहे हैं, जिसने उसे अस्पताल तक पहुंचा दिया, वो कौन है? शायद से डैनी इस सब के पीछे हो सकता है, या फिर शायद कोई और क्षेत्रपालों का सताया हुआ बंदा। देखते हैं उसकी असलियत कब और कैसे सामने आती है।
बहुत ही खूबसूरत तरीके से आप कहानी को आगे बढ़ा रहें हैं
Kala Nag भाई। कहीं भी जल्दबाजी नही की गई है और हर एक अपडेट को आपने बड़ी ही शालीनता से लिखा है। इसी तरह लिखते रहिए भाई, और अपने लेखन से हम सबको विस्मित करते रहिए।
आउटस्टैंडिंग अपडेट्स भाई.. अगली कड़ी की प्रतीक्षा में।