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भाग ९६
ननद की सास, और सास का प्लान
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ननद की सास, और सास का प्लान
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Kya baat hai. Naya andaz. Bahot khub. Amezing"अरे वो मादरचोद, बहन चोद चाहे जिसको चोदे रहेगा मेरा ही, हाथी घूमे गाँव गाँव, जिसका हाथी उसका नाम. आपन बहन चोदे, महतारी चोदे सगी बहिनिया की पहलौठी बेटी चोदे, अपने महतारी की नातिन चोदे"
तो वही बात मुझे याद आ गयी, ननद गाभिन भी होंगी हमरे मरद से, नौ महीने बाद खूब सुन्दर बिटिया भी जनेंगी,...
कोरम कॉल पूरा..
अभी बहनचोद...
फिर सास के आने के बाद मादरचोद भी... आखिर आपके सामने तिरबाचा भरा था..
फिर बेटीचोद भी...
और फिर मिश्राइन भौजी की कुंडली मिलन से भविष्यवाणी...
अब तो सच में ऐसे... चाँद ऐसी बिटिया... नौ महीने के अंदर...
इसी रगड़म-रगड़ाई का तो मजा लिया जा रहा है...Kya likha hai, til til kar ragadte ghasit te hue khunta andar sark rha tha. Adbhut
And thats the true spirit in writing any story.Wow...from erotica..slow teasing to full blown incest sex.. (not that anyone is complaining)...super hot update Madam...truly outstanding..
As user Dreamboy40 wrote in my story comment.... where there is sensual conversation and dialogs during the act...it truly enhances the episode..which is what exactly your update does & adds more sexiness to the on goings...and last but not the least...the pics where truly super and compliment the update in every which way!!
Great Job Madam!!
komaalrani
वो तो प्रीक्वेल में कबूल कर हीं लिया था.लालच अपने मायके वालियों का नहीं दिया,
सैंया जी के मायके वालियों का दिया है सैयां जी की बहन महतारी का, बूआ, चाची, मौसी और उनकी बेटियों का
यहाँ भी तो कुछ यार होंगे...एकदम सही कहा अपने पूरे ससुराल क मजा ले के आयी ननदिया की भी उसके भैया ने चीखे निकलवा दी, आखिर मरद किसका है, मजा दोनों को आ रहा है, भैया को भी सगी बहिनिया को भी ]और एक बात और कौन भाई है जो बहिनिया को देख के जोश में न आये चाहे ब्याहता हो चाहे कुँवारी ।
और एक गवाह भी है, बहिनिया की भौजी।
वो कर्णप्रिय लफ्ज हीं तो उत्तेजना की एक नई सीमा गढ़ता है...जबतक बहन खुद मुंह से न बोले और वो भी भैया, भैया बोल के तब तक भाई बहन के नए रिश्ते का स्वाद ही कहाँ
ये जो कबड्डी में ननदियों के एक्सटेंशन का पार्ट था...जबतक भैया भौजी दोनों मजा न लें और वो भी साथ साथ तो ऐसी रसीली ननद होने का फायदा ही क्या
आखिर ससुराल में कौन कौन नहीं रस ले रहा होगा
वो भी पूरे गाजे-बाजे के साथ (सोहर)...एकदम असली बात तो गाभिन हो नौ महीने बाद बिटिया हो
वरना भाई बहन के किस्से से तो ये फोरम भरा पड़ा है
वहाँ का मजा तो लेके आए..Are muje samazne me galti hui. To fayda to fir bhi unka hai. Vese dono ke mayke par unka hak hai. Apni behen par to fir komal ki bahen par bhi. Amezing.
और ये प्रतिध्वनि की गूंज दूर तलक सुनाई देगी...एकदम नहीं कोमल मैम
रंजी को गुड्डी जो अनुगृहित करने वाली है, ये उसकी प्रतिध्वनि है।
सादर