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आप केसी सेक्स स्टोरी पढना चाहते है. ??

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junglecouple1984

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junglecouple1984

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सौतेली मॉम को रांड बना कर चोदा


दोस्तो, मेरा नाम हरीश है और मैं 19 साल का हूँ.
मैं एक धनी परिवार से हूँ. मेरे परिवार में मेरे डैड की उम्र 47 साल की है और मेरी बहन की उम्र 22 की है. मेरी मॉम की उम्र 32 साल की है.

ये मेरी सौतेली मॉम हैं. डैड ने मेरी सगी मां के मर जाने के बाद दूसरी शादी की थी.
ये बड़ा अजीब सा किस्सा है कि मेरी सौतेली मॉम की भी ये दूसरी शादी थी.

उनकी पहली शादी के एक हफ्ते बाद ही एक भूकंप त्रासदी में उनके पति और सभी ससुराली जनों की मृत्यु हो गई थी.

उस त्रासदी में मॉम और उनके पति की पहली बीवी से पैदा हुई लड़की ही बची थी, जिसको डैड ने मॉम से शादी के समय गोद ले लिया था और उसे अपनी बेटी मान लिया था.

वह लड़की अब मेरी बहन बन गई थी लेकिन मुझे वह एक माल ही लगती थी.

मॉम एक मॉडर्न फैमिली से थीं और वे दिखने में अभी भी 27 साल की लड़की जैसी लगती हैं.
उनकी चाल देखो तो किसी बूढ़े को भी मदहोशी चढ़ जाए. उनके बूब्स 32 इंच के हैं और गांड ऐसी उठी हुई कि देखते ही लंड से पानी निकल जाए. बलखाती कमर और नशीले बदन एक पॉर्न एक्ट्रेस से कम नहीं हैं.

सनी लियोनी तो मॉम के सामने नौकरानी सी लगे.
मेरी मॉम घर पर नाइट गाउन में रहती हैं.

मेरी मॉम हम दोनों बहन भाई को पूरी आजादी देती हैं.
हालांकि मेरी दीदी अभी बाहर एक टाउन में रहती हैं और पापा बिजनेस के सिलसिले में आउट ऑफ टाउन रहते हैं.

घर में मॉम के साथ मैं ही रहता हूँ. वे मुझसे काफी फ़्रेंडली रहती हैं.

यह बात कुछ समय पहले की है, जब मैं जवानी की दहलीज पर कदम रख चुका का था.
मेरे बोर्ड के पेपर खत्म हुए थे, पापा और दीदी बाहर गए थे.

मॉम और मैं घर पर अकेले ही थे.

उस दिन रोज की तरह मॉम और मैं खाना खाने बैठ रहे थे.
मॉम खाना लेकर टेबल पर लगाने आईं तो मैंने मॉम को एक नए गाउन में देखा.
मैं मॉम को देखता ही रह गया.

मॉम बोलीं- क्या हुआ … ऐसा क्या देख रहा है?
तो मैं बोला- मॉम आज तो आप इस गाउन में बहुत हॉट लग रही हो!

तो मॉम बोलीं- हां, ये कल ही तेरे पापा ने दिया था. मगर वे बिना देखे ही चले गए. तुम आज एक काम करना, मेरे कमरे में मेरे साथ ही सो जाना.

ये सुनकर मैं खुश हो गया और सोचने लगा कि मॉम को कैसे चोदूं!
मगर कुछ हुआ ही नहीं.

मैं चुपचाप मुठ मारकर सो गया.

अगले दिन मॉम ने ब्लैक कलर का गाउन पहना था.
वे कमरे से बाहर आईं तो उन्हें देख कर मेरा हाल बेहाल हो गया.
मैंने सोचा कि आज तो इन्हें कैसे भी करके चोद कर ही रहूँगा.

मैं अपने कमरे में जाकर मोबाइल पर मॉम आंड सन सेक्स वाली वीडियो देखने लगा.
उसमें एक लड़का अपनी मां को नींद की गोली देकर चोद रहा था.

मैंने सोचा कि मैं भी ऐसा ही करता हूँ.
मैं मेडिकल स्टोर जाकर नींद की गोली लेकर आया. मुझे उसे दूध में डाल कर देना था. मगर दिक्कत ये थी कि मॉम दूध पीना पसंद नहीं करती थीं.

मैं गोली लेकर घर आया, तो मॉम ने बोला- तू कहां गया था?
मैंने कहा- मैं एक कैंप में गया था, जहां हमें रात में सोते समय हल्दी मिला दूध पीने को बोला है. उससे बड़े फायदे हैं.

मॉम को हल्दी वाले दूध पीने के फायदे बताए तो वे भी हल्दी वाला दूध पीने के लिए कहने लगीं.

मॉम ने कहा कि मैं भी आज से रात में दूध पिऊँगी.
मैंने ओके कह दिया और रात होने का इंतजार करने लगा.

तब तक मैंने बहुत सारी सेक्स वीडियो देखीं.
फिर रात में मैंने और मॉम ने खाना खाया. उसी समय मैंने मॉम को दूध में हल्दी और नींद की गोली डालकर दे दिया और मॉम दूध पीकर सोने चली गईं.

कुछ देर बाद मैं भी रूम में आया तो मॉम सोई हुई थीं.
मैं उनको ब्लैक गाउन में देखता ही रह गया. उनको देखकर मुझसे रहा नहीं गया और मैंने उनके करीब जाकर उन्हें दो बार हिलाया.
वे कुछ नहीं बोलीं, तो मैं समझ गया कि अब सब मेरा ही है.

मैंने अपने सारे कपड़े निकाल दिए और नंगा हो गया. मेरा लंड एकदम खड़ा था.

अब मैं मॉम के कपड़े निकालने लगा. उन्होंने सामने से खुलने वाली नाइटी पहनी हुई थी.
वह डोरी से बंधी थी.

पहले मैंने उन्हें किस किया, फिर उनकी नाइटी को खोल दिया.
सामने मॉम ब्रा पैंटी में लेटी थीं. उन्होंने ब्लैक कलर की ब्रा और पैंटी पहनी हुई थी.

मस्त माल देख कर मुझसे रहा नहीं गया.
मैंने उनकी ब्रा और पैंटी भी निकाल दी और मैं उनके बूब्स चूसने लगा.

कुछ मिनट तक बूब्स चूसने के बाद मैं उनके लिप्स को किस करने लगा अब मैं उनकी चूत पर आया.
मॉम की चूत पूरी सफाचट थी. मैं मॅाम की चूत चाटने लगा.

मेरा लंड पूरा खड़ा था और वो भी एकदम लोहे सा कड़ा हो गया था.
मेरा लंड किसी रॉड की तरह हिल रहा था.

मैंने अपना लंड मॉम की चूत पर सैट किया और पेलना शुरू किया, धीरे धीरे अन्दर बाहर करने लगा.

थोड़ी देर बाद मेरा पूरा लंड मॉम की चूत के अन्दर चला गया था.

मैं ज़ोर ज़ोर से धक्का देने लगा.
मुझे मॉम को चोदते चोदते काफी समय हो गया था और मेरा माल निकलने वाला था.
मैंने अपना माल उनके अन्दर ही छोड़ दिया और लंड अन्दर ही रख कर उनके ऊपर ही लेटा रहा.

फिर मैंने उनकी चूत साफ की और उनको सारे कपड़े पहनाए.
मैंने भी कपड़े पहने और उनके साइड में सो गया.

सो जाने के बाद मुझे इस बात का अहसास ही नहीं हुआ था कि मॉम जागी हुई थीं और वे मेरे लंड से खेल रही थीं.

सुबह मैं और मॉम देरी से उठे.

मॉम बोलने लगीं- मेरी कमर दर्द दे रही है, मालूम नहीं क्यों? आज तुम खाना ऑर्डर कर लो.
मैंने खाना ऑर्डर किया.

खाना आते ही हम दोनों खाने की बात करने लगे.
मॉम ने कहा- मैं नहा कर आती हूँ फिर साथ में खाना खाएंगे.
मैंने ओके कह दिया.

फिर मॉम नहा कर खाना खाने आईं तो उन्होंने एक नया वन पीस पहना हुआ था जिसमें से उनकी गांड बहुत बाहर को निकली हुई दिख रही थी.

तब मैं सोचने लगा कि रात में मुझे उनकी गांड भी मार लेनी थी.
मैं फिर से रात का इंतजार करने लगा.

रात में मॉम को दूध पिलाया और उनके सोने के बाद मैंने अपना का चालू किया, मॉम के कपड़े निकाले और उनको ब्रा पैंटी में करके चूमने लगा.

मैंने उनकी पैंटी निकाली और ब्रा हटा कर उनके बूब्स को दबाने लगा.
कुछ देर बाद मैंने मॉम को करवट दिलाई और उनकी एक टांग मोड़ कर गांड मारने की पोजीशन बना ली.

अब उनकी गांड मारने लायक दिख रही थी.
मैंने मॉम की गांड के छेद पर थूक लगाया और लंड टिका दिया.

उनकी गांड काफी ढीली थी तो मेरा लंड गांड में आसानी से चला गया और मैं मॉम की गांड मारने लगा.

कुछ देर बाद मैंने अपना पानी उनकी गांड में ही छोड़ दिया और कपड़े पहनकर सो गया.

अगली सुबह मॉम मुझसे कहने लगीं- रात में कोई मुझे टच कर रहा था. क्या तू कर रहा था?
मैं डर गया और कहने लगा- मॉम वो मैं ही था.

मॉम हंसने लगीं और बोलीं- मुझे सब मालूम है कि तू ही था. अब तू अपने मुँह से सब बताएगा या मैं ही बताऊँ?

मॉम को हँसते देख कर मेरी फटी हुई गांड वापस मजबूत हो गई और मैंने उन्हें पिछली दो रातों का सारा वाकिया बता दिया कि मैंने ही रात में आपकी गांड और चूत चोदी थीं.

मॉम हंस कर बोलने लगी- अच्छा इसलिए मुझे सुबह इतना दर्द होता है!

मैं बोला- मॉम मुझे आप इतनी हॉट लगती हो कि मुझसे रहा नहीं गया … सॉरी मॉम!
मॉम बोलने लगीं कि चल कोई बात नहीं. आ जा … आज तू मुझे जागते हुए में चोद. मैं भी देखती हूँ कि तू मुझे कैसे चोदता है.

ये कह कर मॉम ने अपने सारे कपड़े निकाल दिए और मैंने भी.

मॉम मेरे लंड को देखकर बोलने लगीं- तुम्हारा लंड तो तुम्हारे पापा से भी बड़ा है.
वे मेरे लंड को चूसने लगीं.

फिर मैंने वासना से भर कर मॉम को गाली देते हुए कहा- आह चूस रंडी … आज से मैं तेरा पति हूँ. चूस अपने नए पति का लंड.

वे भी किसी रांड की भाषा में बोलीं- हां मेरे नए पति देव … मुझे रांड बना कर चोदो.

मॅाम 69 में आ गईं और लंड चूसने लगीं.
मैं उनकी चूत चाटने लगा.

वे बोलीं- तेरे पापा ने अभी तक मेरी चूत नहीं चाटी … लेकिन तू तो बहुत बड़ा चोदूलाल है. आज से हर दिन तू मुझे चोदेगा और मेरी चूत चाटेगा!

मैंने हां कर दिया और कुछ देर बाद अपना लंड उनकी चूत पर रख कर अन्दर पेला.
तो वे चिल्लाने लगीं और कामुक आवाजें निकालने लगीं- आह आह … उन्न मजा आ गया … आह चोद साले चोद डाल अपनी नयी रांड को … आह!

अब मॉम झड़ चुकी थीं. मैं भी झड़ने वाला था.

वे बोलीं- मेरी चूत में ही रस छोड़ दे. मैं प्रेग्नेंट हो जाऊँगी.
मैंने कहा- हां तू मेरे बच्चे की मां बनेगी साली रांड.

ये कहते हुए मैं मॉम की चूत में झड़ गया.

कुछ देर बाद मैंने कहा- मैं तेरी गांड मारूँगा.
वे बोलीं- नहीं उधर मुझे दर्द होगा.

मैं बोला- अरे कल रात को ही मैंने तेरी गांड मारी थी, बड़ा मजा आया था.
वे हंसने लगीं.

मैंने अपना लंड मॉम की गांड में डाला और ज़ोर ज़ोर के शॉट मारने लगा.

वे चिल्लाने लगीं कि साले तू बहुत बड़ा चुदक्कड़ है रे … तेरे लंड से बड़ा मज़ा आ रहा है.

उसके बाद मैं मॉम की गांड में ही झड़ गया और उनके साथ नंगा ही लिपट कर सो गया.

कुछ दिन तक मैं ऐसे ही मॉम को चोदता रहा.
वे मुझसे चुदवाने के लिए रोज नए और सेक्सी कपड़े पहनकर आती थीं.

एक दो हफ्ते तक चुदवाने के बाद मॉम की माहवारी रुक गई और प्रेग्नेंट हो गईं.

मम्मी ने पापा को बताया कि मैं पेट से हो गई हूँ.
पापा भी बीच बीच में मम्मी को चोद कर जाते थे.

पापा खुश हो गए और मॉम को बधाई देने लगे.

फिर बाद में मम्मी मुझसे बोलने लगीं कि आप मेरे पति हो. वे मेरे पैर छूकर कहने लगीं आप बाप बनने वाले हो.

मैं उन्हें सीने से लगाते हुए बोला कि मुझे भी कुछ चाहिए.
वे बोलीं- क्या?

मैंने कहा- मुझे तुम्हारी बेटी की चूत चोदनी है मतलब अपनी बहन को.
वे हंस कर बोलीं- वो तो मैं सोच ही रही थी कि अब तक क्यों रुके हो … चलो ठीक है. बोलो उसकी कब लेनी है?

मैंने कहा- वह भी तेरी तरह ही चुदेगी ना!
मॉम ने हां कहते हुए बताया कि वह खुद तुझसे चुदने को मचल रही है.

उसके बाद मॉम ने चुदवाना बंद कर दिया था क्योंकि वो प्रेग्नेंट थीं तब उन्होंने मेरी बहन को मुझसे चुदवाया.

बाद में मॉम ने एक लड़की को जन्म दिया और जब मम्मी फिर से सामान्य हो गईं तो मैंने मॉम और दीदी को एक साथ चोदा.
वो सेक्स कहानी मैं बाद में लिखूँगा.
 
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junglecouple1984

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घर बना चुदाई का अड्डा: मौसी माँ की चुदाई


मेरे कामुक मित्रो, मेरा नाम सचिन है और मैं पुणे महाराष्ट्र से हूँ.
मैं 19 साल का लंबे मोटे लौड़े वाला युवक हूँ.

मेरे घर में मैं, मेरी मम्मी शिवानी और मेरी मौसी शालिनी रहती हैं.
मम्मी की उम्र 39 साल है, वो बड़े दूध और उभरी हुई गांड वाली एक मादक महिला हैं.

मेरी मौसी शालिनी की उम्र अभी 33 साल है.
उनके दूध मेरी मम्मी के जैसे बड़े नहीं हैं, मगर मस्त हैं. उनकी गांड बड़ी सी है और वो भरे हुए जिस्म की हैं.

जब हम छोटे थे, मेरी मां का तलाक तभी हो गया था.
गरीब होने के कारण मेरे नाना मौसी की शादी नहीं कर पाए थे.
जब हम पापा के साथ रहते थे, तब मौसी नाना के यहां थीं.
फिर जब से मम्मी का तलाक हुआ, तब से मौसी हमारे साथ रहने लगीं.

मेरा पालन-पोषण मम्मी ने ही किया इसलिए मम्मी को हम बहुत प्यार करते हैं.
मम्मी कंपनी में जॉब करती हैं जिससे हमारा खर्च चलता है.

मौसी घर का सारा काम करती हैं.
मैं पढ़ाई करता हूं.

मौसी मेरे साथ हर तरह के मज़ाक करती हैं.

इस कहानी में माँ सेक्स और मौसी की चुदाई दोनों हैं.

एक दिन की बात है, जब मेरी मम्मी ऑफिस गयी थीं.
सुबह के 11 बज चुके थे.

घर पर सिर्फ मैं और मौसी थे. मौसी घर का काम कर रही थीं.

फिर वो अपने मोबाइल में लग गईं.
मैं भी मोबाइल चला रहा था.

नजर उनके मोबाइल फोन पर पड़ी तो मैंने देखा कि वो Xforum पर सेक्स स्टोरी पढ़ रही थीं.

थोड़ी देर में वो उठीं और बाथरूम में घुस गईं.
मैं समझ गया कि मौसी गर्म हो चुकी हैं और अपने आपको शांत करने गई हैं.

इस घटना के बाद से मैं उनकी ओर हवस भरी निगाहों से देखने लगा.
मैंने ठान लिया कि अब मैं मौसी को चोद कर ही रहूंगा लेकिन मुझे डर भी लग रहा था.

अब मैं मौसी को दिन भर घूरता रहता, उनकी हर हरकत पर नज़र रखता.

ऐसे ही 10-12 दिन बीत गए.

एक दिन वो घड़ी आ चुकी थी, जब मौसी की चुदाई का मौका मिल गया.

उस दिन मौसी रोज की तरह Xforum स्टोरी पढ़ कर बाथरूम में खुद को शांत करने के लिए गईं और दरवाजा बंद करना भूल गईं.

मेरी नजर दरवाजे पर पड़ी, तो मैंने पाया कि गेट हल्का सा खुला है.
मैंने मन में सोचा कि आज जो भी होगा, देखा जाएगा.

बस मैं झटके से दरवाजा खोल कर अन्दर घुस गया.

मौसी फर्श पर लेटी चूत में उंगली डाली हुई थीं.
लेकिन एक अचरज भरी बात ये हुई कि मौसी मुझे देखकर बिल्कुल भी नहीं चौंकी.

जब तक मैं कुछ सोच पाता, मौसी बोलीं- हरामी देख क्या रहा है, मार मेरी गांड भोसड़ी वाले. मैंने दरवाजा तेरे ही लिए खुला छोड़ा था. चल आ जा, मेरी चूत का भोसड़ा बना दे … बहुत दिनों से लंड नहीं मिला. साले मेरी चुत की आग बुझा दे मेरी.

मैंने लंड सहालते हुए कहा- अब मैं तुम्हारी आग रोज बुझाऊंगा.
मौसी को किस करते हुए मैंने गोद में उठा लिया और बेडरूम में ले आया.

मैंने उसे बेड पर पटक दिया और मैं उनके शरीर को निहारने लगा.
बड़े बड़े मम्मे, उठी गांड, चिकनी जांघें पानी छोड़ती हुई शेव्ड चूत. ये सब देख कर मेरा 7 इंच का लंड तन कर पैंट में खड़ा हो गया.

मौसी रंडी की भाषा में बोली- देखता ही रहेगा या खेल भी दिखाएगा?

मैंने जल्दी से अपने सारे कपड़े उतार दिए.
मैं पूरा नंगा हो गया और मेरी तोप तनी हुई थी. मैं उन्हें चूमने लगा, वो भी मेरा साथ देने लगीं.

मौसी के एक दूध को मैं मुँह में लेकर चूसने लगा और उनके निप्पल काटने लगा.
जिससे वो सिहर उठीं और कामुक आवाजें निकालने लगीं ‘आह ऊह उम्म आआह.’

मेरा जोश बढ़ने लगा.
मैं मौसी की चूत चाटने लगा और जीभ घुसेड़ने लगा.
मौसी की कामुक सिसकारियां निकलने लगीं- उम्म अहा आआह मादरचोद … चोद दे मुझे … क्यों तड़पा रहा है भोसड़ी के.

मुझे मज़ा आने लगा.
मैंने मौसी के मुँह में अपना लंड घुसा दिया और वो लंड चूसने लगीं.

जल्द ही हम दोनों 69 की अवस्था में आ गए.
करीब 10 मिनट बाद हम एक दूसरे के मुँह में झड़ गए.

मौसी मेरा लंड झड़ने के बाद भी चूसती रहीं, जिससे मेरा लौड़ा फिर से खड़ा हो गया.

मैंने सीधे होकर मौसी की चूत पर लौड़ा सैट किया और एक जोरदार झटका दे मारा. मेरा आधा लंड अन्दर चला गया.

हुए इस हमले से मौसी चिल्ला उठीं- आह मादरचोद … भोसड़ी के … मार डाला … गांड मार दी मेरी भैन के लंड आह मर गई!

मैंने उनकी चिल्लपौं को नजरअंदाज किया और एक और तेज झटका दे मारा.
इस बार मेरा पूरा लौड़ा चूत में समा गया.
वो तड़फ रही थीं.

मैं धीरे धीरे लंड अन्दर बाहर करने लगा.

मौसी की आवाज़ें निरंतर निकल रही थीं- उफ्फ्फ आआह उम्मन आआह मार दिया साले हरामी कुत्ता … आह.
मैं चोदता रहा.

थोड़ी देर बाद मौसी को मज़ा आने लगा और हमारी मस्ती भरी चुदाई चलने लगी.
काफी देर ताबड़तोड़ चुदाई के बाद मैं झड़ने वाला था.

मैंने मौसी से पूछा- माल कहां निकालूँ?
उन्होंने कहा- अन्दर ही छोड़ दे.

मेरा माल उनकी चूत में भर गया और मैं उनके ऊपर निढाल होकर गिर पड़ा.
अब भी मेरा लंड मौसी की चूत में ही था.

पांच मिनट बाद मेरा लंड उकी चुत में ही फिर से खड़ा होने लगा.

मैंने मौसी से कहा- एक और बार?
उन्होंने हां में सिर हिला दिया.

अब मैंने उनको उठा कर अपने ऊपर बैठा लिया और लौड़े की सवारी कराई.
जैसे ही मौसी मेरे ऊपर कूदतीं, उनके भारी वजन से मेरा पूरा शरीर हिल जाता.
इससे मेरा उत्साह और भी बढ़ जाता.

हमारी चुदाई चलती रही, फिर मैं झड़ गया.
तीन बार झड़ने के बाद मैं काफी थक गया था, तो मौसी से अलग हो गया.

मौसी ने चूत साफ करके अपने कपड़े पहने और हमने एक डीप किस किया.
मैं अपने कमरे में जाकर सो गया. वो अपना काम करने लगीं.

जब मैं सो कर उठा, तब शाम के 5 बज चुके थे.
मौसी किचन में थीं.

तभी मैं किचन में गया और मौसी को पीछे से पकड़ कर उनके दूध दबा दिए.

मौसी बोलीं- बहुत शरारती है, मैं तो डर ही गई थी.
मैंने उन्हें चूमते हुए कहा- अगली सर्विस का मौका कब दोगी?

मौसी बोलीं- जब तू बोलेगा?
मैंने कहा- आज रात में आ जाना!

मैंने मौसी को किस किया और वहां से चला गया.

थोड़ी देर में मम्मी आ गईं.
वो काफी थकी हुई थीं, आकर वो सीधा लेट गईं.
मैंने उनको पानी दिया.

रात को सबने खाना खाया और सोने के लिए जाने लगे.

मम्मी और मौसी एक ही कमरे में सोती थीं. वो दोनों उसी बेड पर सोती थीं, जिसपर मैंने मौसी को चोदा था.

मैं अलग कमरे में सोता था.
मौसी मम्मी से बोलीं- मैं आज सचिन के साथ सो जाती हूं. उसके कमरे में कूलर है.

मम्मी ने मुझसे पूछा- तुझे कोई दिक्कत तो नहीं होगी?
मैंने कहा- नहीं, कोई दिक्कत नहीं.

मेरे मन में लड्डू फूटने लगे कि आज पूरी रात चुदाई होगी.
मम्मी सोने चली गईं.

मैं भी अपने कमरे में चला गया और मौसी के आने का इंतज़ार करने लगा.

थोड़ी देर में मौसी आईं.
उन्होंने कमरे का दरवाज़ा लगा दिया और कूलर चालू कर दिया जिससे चुदाई की आवाज़ें बाहर ना जा पाएं.

मैंने मौसी को पकड़ा और जोर से किस करने लगा.
मौसी भी मुझे चुम्बन करने लगीं.

हम एक दूसरे के कपड़े उतारने लगे और थोड़ी ही देर में हम दोनों नंगे हो गए.
मैंने मौसी को लिटाया और उनकी चूत को सूंघने लगा.

वाह क्या खुशबू थी. मैं उनकी चूत चाटने लगा.
वो सिहरने लगीं.

फिर मैंने अपना लंड सैट किया और पेल दिया.
एक बार में पूरा लंड अन्दर … मौसी की चीख निकल गयी.
मैं रुक गया कि कहीं बाहर आवाज़ न चली जाए.

फिर मैंने मौसी के होंठों पर अपने होंठ रख दिए और धक्के लगाने लगा.
अब आवाज बाहर नहीं आ रही थी. कुछ देर बाद मैंने होंठ हटा दिए.

अब मौसी की चुदाई की धीमी धीमी आवाज़ निकल रही थी- आआह आआह … उम्मम अहा उफ्फ … और तेज तेज कर.
इससे मेरा जोश बढ़ने लगा और मैं उन्हें और जोर से चोदने लगा.

करीब आधा घंटा बाद हम दोनों झड़ गए.
इसी तरह से हमने पूरी रात चुदाई की.

उसी रात मैंने मौसी की गांड भी मारी.

सुबह 5 बजे तक चुदाई की, फिर कपड़े पहन कर सो गए.

मैं 9 बजे उठा, तब मौसी काम कर रही थीं.
मम्मी मुझसे बोलीं- इतनी देर तक सोते हो … रात में क्या करते हो?
मैंने उनसे कहा- आप ऑफिस नहीं गईं?

मम्मी बोलीं- संडे को भी जाया जाता है क्या?
मैं कुछ नहीं बोला और नहाने चला गया.

नहाकर आया, तो मैंने मम्मी से पूछा- मौसी कहां हैं?

वो बोलीं- छत पर कपड़े धो रही है.
मैं छत पर गया, तो मौसी सिर्फ ब्लाउज और पेटीकोट में कपड़े धो रही थीं.

मैंने कहा- मम्मी तो आज घर पर हैं, हम लोग कैसे करेंगे?
वो बोलीं- मुझे भी समझ नहीं आ रहा है.

मैंने कहा- कोई तरकीब नहीं है?
मौसी- दीदी को भी अपने साथ शामिल कर लो.

मैंने कहा- वो कैसे?
उन्होंने कहा- ये मुझ पर छोड़ दो.

इससे मैं खुश हो गया कि मुझे एक और चूत मिलेगी.
मैं नाश्ता करने चला गया.

कुछ देर बाद मौसी कपड़े धोकर और नहा कर आ गईं और काम करने लगीं.

मैं किचन में गया और मौसी से कहा- मैं एक बात कहूँ?
उन्होंने कहा- हां बेझिझक बोल!

मैंने कहा- मुझे आज ही मां को चोदना है.
मौसी हंस दीं और बोलीं- मां चोदने की इतनी जल्दी?

मैंने कहा- मैं जहां से निकला हूँ, उसमें लंड घुसेड़ना चाहता हूं. आप प्लान बना लो.
मौसी ने कहा- ठीक है, मैं प्लानिंग करती हूँ.

फिर शाम को मैंने अपनी मम्मी को ऊपर से नीचे तक देखा तो मुझे लगा कि इस उम्र में भी मेरी मम्मी काफी सेक्सी हैं.

हम सब लोगों ने खाना खाया और मैं मोबाइल में लग गया.

तभी मेरी नज़र मम्मी और मौसी पर गयी.
वे दोनों पता नहीं क्या बातें कर रही थीं और मेरी तरफ देख कर हंस रही थीं.
मुझे समझ नहीं आया.

फिर मैं फिर अपने कमरे में चला गया और उधर नंगा होकर बैठ गया.
मैं मौसी का इंतजार करने लगा.

थोड़ी देर बाद मौसी आ गईं और मैं उन्होंने बेतहाशा चूमने लगा.
वो भी मेरा साथ देने लगीं.
फिर मैंने उनको बेड पर पटक दिया और दूध चूसने लगा, निप्पल काटने लगा.

मौसी मादक सिसकारियां भरने लगीं.

अब मौसी नीचे बैठीं और लौड़ा हाथ में लेकर चूसने लगीं.
मुझे बहुत मज़ा आने लगा.

थोड़ी देर में मैं मौसी के मुँह में झड़ गया.
मौसी ने पूरा माल गटक लिया और लंड चाटकर साफ कर दिया.

वो लगातार लंड चूसती रहीं जिससे मेरा लंड दोबारा खड़ा हो गया.
मैंने मौसी से बेड पर लेटने को कहा और मौसी की चूत पर लौड़ा सैट कर दिया.

वो भी लेने को तैयार थीं, मैंने एक जोरदार झटका दे मारा, मेरे पूरा लौड़ा मौसी की चूत में समा गया.
मौसी की हल्की सी आआह निकल गयी.

मैं धीरे धीरे अन्दर बाहर करने लगा.
मौसी की मादक सिसकारियां निकलने लगीं- आआह उम्ममम्म आआह अहा मांआह.

थोड़ी देर बाद मैं मौसी की चूत में ही झड़ गया और निढाल होकर मौसी के ऊपर गिर गया.

थोड़ी देर बाद मेरा लौड़ा फिर से खड़ा होने लगा.
मैंने मौसी से कहा- मुझे आपकी गांड मारनी है.

मौसी ने हां कर दी और कहा- बाहर से नारियल का तेल ले आ.
मैं तेल लेने चला गया.

और जब लौटा तो मौसी गांड खोल कर उल्टी लेटी हुई थीं.
कमरे की लाइट बंद थी, मुझे हल्का हल्का ही दिख रहा था.

मैंने अपने लौड़े पर तेल लगाया और मौसी की गांड में तेल भर दिया.
लंड सैट करके मैंने एक जोरदार झटका मारा, तो मेरा आधा लौड़ा गांड में घुस गया.

मौसी की चीख नहीं निकली तो मुझे अजीब सा लगा.
मैंने एक और झटका मार कर पूरा लौड़ा घुसा दिया.

फिर मैं धीरे धीरे अन्दर बाहर करने लगा.

थोड़ी देर बाद अचानक से बल्ब जला.
मैं घबरा गया और मुड़कर देखा तो मौसी मेरे पीछे खड़ी थीं.

मैंने आगे देखा तो मेरी आंखें फटी की फटी रह गईं.
मैं अपनी मम्मी की गांड मार रहा था.

मौसी ने कहा- कैसा लगा माँ सेक्स का सरप्राइज?
मम्मी ने भी मुझे एक स्माइल दी और कहा- तू कब बड़ा हो गया, मुझे पता ही नहीं चला. अब अपनी मम्मी को खुश कर दे.

मैं खुश हो गया और धक्के मारने लगा.
थोड़ी ही देर में मैं झड़ गया.

फिर मम्मी उठीं और मुझे किस करने लगीं.
मौसी मेरे लौड़े को चूसने लगीं.

मैंने मौसी को थैंक्स बोला.
फिर मैंने मम्मी की चूत चोदने की इच्छा जताई.

मैं बेड पर लेट गया.
मम्मी मेरे लौड़े पर बैठ गईं और मौसी मेरे मुँह पर.

अब मम्मी और मौसी एक दूसरे के दूध दबाने लगीं और चुदाई शुरू हो गयी.

मम्मी मेरे लौड़े पर उछलने लगीं और मौसी चूत चटवाती हुई सिसकारियां भरने लगीं.
मेरी मम्मी, मौसी के दूध दबाने लगीं.

पूरे कमरे में फचर फचर और आआह उम्म मम्म अहा के साथ गालियों की आवाज़ गूंजने लगी.
मैंने दोनों को बारी बारी से चोदा.

पूरी रात चुदाई करने के बाद सब लोग एक दूसरे के ऊपर नंगे ही सो गए.
हम तीनों सुबह दस बजे जागे तो सब लोग नंगे ही थे.

मैंने अपनी मम्मी को उजाले में अच्छे से देखा, सच में मम्मी बहुत सेक्सी हैं.
आज मम्मी काम पर नहीं गईं.

सुबह से ही हम तीनों ने एक राउंड और चुदाई की, फिर फ्रेश होने लगे.

एक घंटा बाद हमने कुछ खाया और बातें करने लगे.
मैंने मौसी से पूछा- आपने आखरी बार कब सेक्स किया था?

वो बोलीं- पिछले महीने ही.
मैंने कहा- किसके साथ?
उन्होंने बताया- एक अजनबी आदमी से.

फिर मम्मी से पूछा कि आपने कब किया था?
मम्मी ने बताया कि वो तो रोज़ ही करती हैं.

मैं ये सुनकर हैरान हो गया.
मैंने पूछा- किसके साथ?

उन्होंने बताया कि वो अपने मालिक के साथ सेक्स करती हैं. वो उन्हें काम के नहीं, चुदाई के पैसे देता है.
उन्होंने ये भी बताया कि जब ज्यादा पैसे की जरूरत होती है, तो मैं तेरी मौसी को भी ले जाती हूं. हम दोनों बहुत बड़ी चुदैल हैं.

तब मुझे पता चला कि मेरी मां और मौसी दोनों एकदम रंडी हैं.

फिर मौसी ने मुझसे कहा- अब मुझे भी एक बच्चा पैदा करना है, तुझे जल्दी ही बाप बना दूँगी.
मम्मी ने कहा- बेटा इसकी जरूरत तू ही पूरी कर.

अब जब टाइम मिलता, हम लोग चुदाई कर लेते हैं.

मौसी को सबसे ज्यादा मैं चोदता हूँ.

एक महीने बाद पता चला कि मेरी मौसी मेरे बच्चे की मां बनने वाली हैं.
मैं बहुत खुश हुआ.

फिर दिन बीतने के बाद मौसी को लड़का हुआ.

जब मौसी प्रेग्नेंट थी, तब मैंने मम्मी को बहुत चोदा.

ऐसे ही हमारी ज़िंदगी आगे बढ़ने लगी.
अब मैं मम्मी और मौसी के साथ दूसरे शहर में रहने लगा हूँ.

मैं आशा करता हूं कि आपको माँ सेक्स और मौसी की चुदाई कहानी पसंद आई होगी.
मुझे जरूर बताएं.
 
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सौतेली मम्मी की चूत चुदाई खेतों में

हाय, मेरा नाम राहुल है. मैं उत्तर प्रदेश के एक छोटे से गांव का रहने वाला हूँ.
यह बात अभी से लगभग 2 साल पहले की उस वक्त की है जब मैंने पहली बार अपनी सौतेली मम्मी की चुदाई की थी.
उसके बाद तो मैं उन्हें बहुत बार चोद चुका हूँ.

मेरी सगी मम्मी का देहांत अठारह साल पहले किसी बीमारी की वजह से हो गया था.
मेरे परिवार में हम दो भाई हैं. दूसरा भाई मुझसे बड़ा है.

हम दोनों भाइयों को पालने के लिए पापा ने दूसरी शादी कर ली थी.
मगर पापा की मृत्य भी आज से तेरह साल पहले हो गई थी.

मेरी सौतेली मम्मी की उम्र अभी 45 साल की है. बड़े भाई की 23 और मेरी 21 साल है.
आज से कुछ साल पहले हमारे घर में बाथरूम नहीं था तो मम्मी खुले में ही नहाती थीं.

उस टाइम मैं उन्हें नहाते हुए देखता था. मेरी मम्मी का गोरा शरीर बड़ा मस्त लगता था. वो मुझे हमेशा से ही एक माल लगती थीं.
लेकिन जैसे जैसे मैं बड़ा होता गया, मेरा मन उनको चोदने को होने लगा था.

पापा के देहांत के बाद उनको किसी ने नहीं चोदा था.
उनका रंग एकदम गोरा है, शरीर एकदम पतला सा और चूचियां भी छोटी छोटी हैं.

ये बात तब की है जब मेरे भाई की शादी होने के बाद भाई भाभी एक रूम में सोते थे और मैं और मम्मी एक रूम में!
मैं रात में उठ उठ कर उनकी जांघों को देख कर मुठ मारता था पर कभी हिम्मत नहीं होती थी कि कुछ कर पाऊं.

फिर एक दिन मेरा एक दोस्त मुझे एक मज़ार पे ले गया, मैं भी उसके साथ चला गया.
वहां हमें एक मौलवी जी मिले.

मेरा दोस्त उनके पास कुछ काम से गया था.
उसका काम होने के बाद हम दोनों आ गए.

मैंने दोस्त से पूछा- क्या काम था?
उसने बताया- ये मौलवी जी कोई भी काम करवा सकते हैं. इनकी मदद से किसी को भी तू अपने वश में कर सकता है.

मैंने पूछा- कैसे मदद?
उसने बताया- मौलवी जी कुछ ताबीज वगैरह देते हैं.

मैंने उसको बोला- चल छोड़ … मैं नहीं मानता.
उसने कुछ नहीं कहा.

हम दोनों अपने अपने घर आ गए.

घर आने के बाद जब रात में मैंने मम्मी को देखा, तो वो गहरी नींद में सोई हुई थीं और उनका पेटीकोट जांघों तक उठा हुआ था.
लाइट बंद होने के बाद भी मम्मी की गोरी जांघें चमक रही थीं.

मैंने मन बना लिया कि एक बार मम्मी को तो चोदना ही है.
मगर मैं बिना मम्मी की राजी के उन्हें नहीं चोदना चाहता था.

मैं अगले दिन अपने उसी दोस्त से मिला और मैंने उससे मौलवी जी का फोन नंबर ले लिया.

दोस्त ने पूछा- क्या काम है मौलवी जी से?
मैंने उसको बोला- कुछ ख़ास नहीं यार, ऐसे ही अपनी जॉब के बारे में बात करनी है.

शाम को मैंने मौलवी जी को कॉल किया.
मैंने उनको अपना नाम ग़लत बताया और कहा कि एक औरत को अपने वश में करना है.

पहले तो वो मना करते रहे लेकिन काफ़ी बार कहने के बाद वो मान गए.
उन्होंने मुझे मिलने के लिए बुलाया.

मैं गया तो उन्होंने मुझे पहचान लिया, पर मैंने उनसे कहा- आप मेरे दोस्त को नहीं बताना.
वो मान गए.

फिर जो भी जानकारी उन्होंने मांगी, मैंने उन्हें दे दी.
उन्होंने मुझसे कहा- जाओ कोई भी मिठाई लेकर आ जाओ.

मैं बर्फी ले आया.
मेरी मम्मी को बर्फी बहुत पसन्द थी.

मौलवी जी ने उस बर्फी के डिब्बे में से एक पीस लिया और उसपर कुछ मंत्र बोलने के बाद मुझे देकर बोले- ले … उसको खिला देना.

मैं घर आ गया और रात में अपने कमरे में चला गया.
जब भाई और भाभी सो गए, तब मैं मिठाई लाया और वो पीस मम्मी को खाने को दे दिया.

उन्होंने पूछा- ये कहां से लाया है?
मैंने बोला- एक दोस्त के साथ था, तो वहां ले ली थी. दोनों ने खाई मगर ये दो पीस बच गए थे.

मम्मी ने बड़े प्यार से बर्फी खा ली.

मौलवी जी ने बताया था कि असर 3 दिन बाद होना शुरू हो जाएगा और 7 दिन में काम पूरा हो जाएगा.

दोस्तो, दो दिन बाद ही असर दिखना शुरू हो गया था. अब मम्मी मुझसे रात में देर तक बात करने लगी थीं और जानबूझ कर पेटीकोट को ऊपर करने लगी थीं.

लेकिन मौलवी जी ने बोला था कि 7 दिन से पहले तू कोई अपनी तरफ से कोई हरकत नहीं करना इसलिए मैंने कुछ नहीं किया.

फिर इस दौरान मेरे मामा के घर में एक फंक्शन आ गया तो मैं दो दिन के लिए वहां चला गया.

लेकिन जिस दिन मैं वापस आया, मम्मी के चहरे पर उस दिन अलग ही ख़ुशी नजर आ रही थी.
उन्होंने बड़े प्यार से मुझसे बात की और रात को हम दोनों सोने चले गए.

उन्होंने मुझसे कहा- कल तू मेरे साथ खेत में चलना.
ये कहते समय मम्मी के चेहरे में एक विशेष ख़ुशी सी झलक रही थी.

मैं बोला- ठीक है मम्मी.
हम दोनों रात में देर तक बातें करते रहे.

सुबह उठने से पहले ही वो मेरे लिए चाय लेकर आईं और बोलीं- जल्दी से खड़ा हो ज़ा, आज हमें खेतों के चलना है.

हमारे खेत गांव से थोड़े दूर हैं, हमने अपने खेत एक बंदे को बटाई पर दे रखे हैं. हम दोनों कभी कभी ही खेत पर जाते हैं.

हम दोनों तैयार हुए. भाई के काम पर जाने के बाद हम दोनों बाइक पर बैठ कर खेत के लिए निकल गए.

रास्ते में मैंने कई बार ब्रेक मारे और वो भी हंस हंस कर बात करती जा रही थीं.

वहां पहुचने के बाद हम दोनों हमारे खेत पर बने कमरे में आ गए.
वहां एक चारपाई पड़ी है. उस पर जाकर मम्मी बैठ गईं.

कुछ देर बाद आराम करने के बाद वो बाहर आईं और खेती करने वाले आदमी को बुला कर उससे बात करने लगीं.

मैं कमरे की छत में ऊपर चढ़ गया और चारों ओर इधर उधर देखने लगा.
मैंने देखा दूर दूर तक बाजरे के खेतों में फसल लहलहा रही थी.

मम्मी उस आदमी और उसकी बीवी से बात करती रहीं.

फिर उस आदमी को कहीं काम से जाना था, उसने मम्मी से कहा- मालकिन मुझे बाजार जाना है, कुछ सामान लाने के लिए.
मम्मी ने उसे जाने के लिए हां कह दिया.

वो चला गया.
उसकी बीवी और मम्मी बातें करती रहीं.

थोड़ी देर बाद मम्मी ने मुझे आवाज़ दी- बेटा, नीचे आ जाओ, चलते हैं.
मैं नीचे आ गया.

मम्मी ने उस औरत से पूछा- खरबूजे कहां लगे हैं?
उसने इशारा करके बताया- मालकिन उस वाले खेत में लगे हैं.

मम्मी ने मुझसे कहा- घर जाने से पहले कुछ तोड़ लाते हैं.
मैंने बोला- ठीक है चलो.

मम्मी आगे आगे चल रही थीं और मैं उनके पीछे पीछे.
वो बहुत सेक्सी लग रही थीं.

खेतों के काफ़ी अन्दर जाने के बाद उन्होंने मुझसे पूछा- क्या हम लोग बहुत अन्दर आ गए हैं?
मैंने कहा- हां मम्मी.

वो बोलीं- एक बात बोलूँ?
मैं समझ गया कि असर हो गया.

उनकी नज़रों से साफ़ लग रहा था.
वो बोलीं- तेरी कोई दोस्त लड़की है?
मैंने कहा- नहीं.

वो बोलीं- शर्मा मत, सच बता.
मैंने कहा- नहीं है, आपकी कसम.

वो बोलीं- क्यों नहीं बनाई?
मैंने कहा- कोई बनती ही नहीं.

मम्मी हंसने लगीं.

मैंने कहा- आप बन जाओ.
वो बोलीं- तू पागल है, मैं मम्मी हूँ तेरी, किसी को पता चल गया तो?

मैंने कहा- कौन बताएगा. ना आप किसी से कहोगी और ना मैं.
यही सब बातें करते करते हम बहुत अन्दर चले गए.

वहां जाकर वो रुक गईं और मेरी तरफ देख कर हंसने लगीं.
मैं समझ गया कि मम्मी मेरे वश में आ गई हैं.

मैंने थोड़ी हिम्मत करके उनका हाथ पकड़ लिया.
वो बोलीं- कोई आ जाएगा पागल … छोड़.

मैंने कहा- यहां कौन आएगा?
वो मुस्कुराती हुई बोलीं- कोई नहीं आएगा तो तू क्या करेगा?

मैंने थोड़ी हिम्मत करके मम्मी के दोनों कंधे पकड़ लिए. वो मेरी तरफ़ देखती रहीं और मुस्कुराती रहीं.
मेरी हिम्मत और बढ़ गई.

मैं उन्हें गले लगाने के लिए आगे को बढ़ा और वो शर्माते हुए मेरे सीने से लग गईं.
उनको गले से लगाते ही मेरा लंड खड़ा हो गया था.

मैंने सबसे पहले मम्मी के माथे पर एक किस किया.

वो बोलीं- लेकिन कभी किसी को पता नहीं चलना चाहिए.
मैंने कहा- आपकी कसम कभी किसी को पता नहीं चलेगा.

अब मैंने मम्मी को अपने गले से जोर से चिपका लिया और उनकी पतली कमर पर हाथ फेरने लगा.

उन्होंने इतने साल से किसी के साथ सेक्स नहीं किया था तो वो कांप रही थीं.

मैंने उनकी साड़ी का पल्लू नीचे गिरा दिया.
उन्होंने आंखें बंद कर लीं.
मैंने पूरी साड़ी खोल दी.

मेरे दिल की धड़कन भी तेज हो गई थी.
मैंने उनकी साड़ी को नीचे बिछा लिया और उनको पकड़ कर नीचे लेटा दिया.
मम्मी आंखें बंद करके लेट गईं.

मैं सबसे पहले उनके ऊपर चढ़ गया और उनके होंठों पर किस करना शुरू कर दिया.
मम्मी ने भी अपना मुँह खोल दिया ओर पूरा साथ देने लगीं.

मैंने किस करते करते मम्मी के ब्लाउज के हुक खोल दिए.
मेरे सामने उनकी बिल्कुल छोटी छोटी चूचियां ब्रा में दिख रही थीं.

मैंने उनकी ब्रा के हुक खोल दिए और उनकी एक चूची को अपने मुँह में लेकर चूसने लगा.
मम्मी ने कामुक सिसकारियां भरनी शुरू कर दीं.
मैंने अपना एक हाथ नीचे उनके पेटीकोट में डाल दिया. उनकी चूत पानी छोड़ रही थी, लेकिन एकदम मस्त थी.

मैंने अपनी लाइफ में मम्मी के जैसी चकाचक चूत नहीं देखी थी.
मुझसे रहा नहीं गया, मैंने उनका पेटीकोट निकाल दिया और उनकी टांगों के बीच में हाथ ले आया.

फिर मम्मी की दोनों टांगों को चौड़ा करके उनकी चूत पर अपना हाथ रख दिया.

मम्मी के मुँह से एक तेज आह की आवाज़ आई और मैंने उनकी चूत को मींजना शुरू कर दिया.
उन्होंने अपने हाथ मेरे सर पर रख दिए और दबाने लगीं.

मम्मी सिसयाती हुई बोलीं- आह बस कर … क्या कर रहा है … रहने दे.
मैंने कहा- क्यों पहले किसी ने नहीं किया?

वो बोलीं- सच में तेरी कसम आज … पहली बार तूने ही नीचे किस की है. तेरे पापा ने भी कभी नहीं की.
मैंने कहा- मजा नहीं आया क्या?
मम्मी बोलीं- बहुत ज्यादा मजा आ रहा है यार!

मैंने अपना लोवर निकाल दिया और देखा वो मेरा लंड देखने की कोशिश कर रही थीं.
तो मैंने अपने पूरे कपड़े निकाल दिए.

मेरा कड़क लंड देख कर मम्मी की आंखें फटी की फटी रह गईं.
लंड को देख कर मेरी मम्मी घबरा गई थीं, वो बोलीं- ये इतना बड़ा … मैं नहीं ले पाऊंगी. तेरे पापा का तो इससे बहुत छोटा था.

मैं आपको बताऊं, मैंने अपना लंड मालिश कर कर कर बहुत बड़ा कर रखा है. मेरे लंड का साइज़ काफी बड़ा है, ये मोटा भी बहुत है.
मैंने उनका हाथ पकड़ कर लंड पर रखा.

वो बोलीं- बेटा मैं इसे नहीं ले पाऊंगी. इससे मेरी फ़ट जाएगी.
मैंने कहा- सब हो जाएगा, प्यार से करूंगा मैं!

ये कह कर मैंने मम्मी की चूत के मुँह पर हाथ से दबा दिया और चूत के अन्दर एक उंगली डाल दी.
वो सिसकारी लेने लगीं.

उनकी पतली पतली टांगों को मैंने ऊपर उठा लिया.
उनकी आंखों में डर दिखाई दे रखा था.

इधर मुझसे रुका नहीं जा रहा था.
मैं मम्मी की टांगों के बीच में आ गया और अपना लंड उनकी चूत पर रख दिया.

मम्मी ने आंखें बंद कर लीं और मैं उनके ऊपर लेट गया.
मैंने मम्मी के होंठों को अपने मुँह में ले लिया और एक जोर का झटका दे दिया.

एक ही धक्के में मेरा आधा लंड मम्मी की चूत को फाड़ता हुआ अन्दर चला गया.
मम्मी के होंठ मेरे मुँह के अन्दर होने की वजह से वो चिल्ला नहीं पाईं, पर वो छटपटाने लगीं और उनकी आंखों से आंसू निकल आए.

मैंने उनकी टांगें थोड़ी सी ऊपर की और फिर से एक जोर का धक्का दे दिया.
इस बार मेरा पूरा लंड, छूट को फाड़ता हुआ जड़ तक घुसता चला गया.

मैं थोड़ी देर ऐसे ही लेटा रहा.
थोड़ी देर में वो नॉर्मल हो गईं.

मैंने उनके होंठों से मुँह हटा लिया.

वो बोलीं- बेटा निकाल ले, मर जाऊंगी.
मैंने कहा- नहीं मरेगी मेरी जान.

मैंने धीरे धीरे धक्के लगाने शुरू कर दिए.
पहले तो मम्मी को दर्द हुआ, लेकिन फिर वो भी साथ देने लगीं.

मैंने मम्मी की टांगें उठा कर कंधों पर रख लीं और उन्हें जोर जोर से चोदने लगा.
अब वो भी मस्ती में बोल रही थीं- आह ऐसे ही चोद दे … ऐसे तो पहले कभी किसी ने नहीं चोदा.

मैंने थोड़ी देर चोदने के बाद मम्मी को घोड़ी बनने के लिए कहा.
पर वो बोलीं- अभी ऐसे ही पेल ले. रात में घर में कुतिया बना कर चोद लेना. अभी बहुत दर्द हो रहा है.

मैं लग गया और 15 मिनट तक मम्मी को ताबड़तोड़ चोदने के बाद मेरा माल निकलने वाला था.

मेरी सौतेली मम्मी का अब तक दो बार पानी निकल चुका था.

वो हाथ जोड़ने लगीं और बोलीं- छोड़ दे यार आज ही मार देगा क्या?
मैं बोला- मेरी जान माल निकलने वाला है, क्या करूं?
वो बोलीं- अन्दर ही निकाल दे जानू.

मैंने अपने लंड का पूरा माल मम्मी की चूत के अन्दर ही निकाल दिया.
फिर कुछ देर बाद हम दोनों ने अपने कपड़े पहने और घर आ गए.

ऐसे मौलवी जी की मदद से मेरा मॉम सेक्स का सपना पूरा हुआ.

रात में मैंने मम्मी को दबा कर चोदा और दो दिन बाद उनकी गांड भी मारी.
 
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मैंने अपने अब्बू की बीवी को चोद दिया


दोस्तो, मेरा नाम आदिल है और मैं 23 साल का हूँ.
मेरे घर मे मेरे अलावा अम्मी, अब्बू और मेरी 2 छोटी बहनें है.


मेरे अब्बू ने कई शादियाँ की हुई हैं.
मेरी सगी अम्मी पहले ही मर गयी थी.
इस वक्त जो अम्मी मेरे साथ रह रही है, वो मेरी नहीं … पर मेरी दो छोटी बहनों की अम्मी है.

अपनी दोनों बहनों की चूत की सील मैंने पहले ही तोड़ दी थी. मैं मजे से उन दोनों के चुचों के साथ खेलता था.

पिछले साल उन दोनों का निकाह हो गया और अब वो दोनों अपने शौहरों के लंड की सेवा में लगी हुई हैं.

मेरी अम्मी का नाम नगमा (43) है. वो बेहद खूबसूरत बदन की मल्लिका हैं, जिनके 36D के गोल और तने हुए बोबे, किसी भी लंड को खड़ा करने का दम रखते हैं. तीस की कमर है, जिसको मैंने कई बार ख्वाब में पकड़कर उन्हें चोदा है.

अम्मी की 38 इंच की उठी हुई गांड है, जो चलते हुए इतनी मस्त हिलती है कि बस मन करता है कि अभी के अभी साली की सलवार खोलकर गांड मार दूँ.

मेरे अब्बू का नाम नासिर है, वो 51 साल के हैं.
अब्बू छह साल पहले उस्मान चाचा के साथ कोलकाता काम करने गए और वहां जाकर अपने से 20 साल छोटी औरत 31 साल की शब्बो से शादी कर ली.

शब्बो हल्की सी सांवली पर बेहद दिलकश कटाव वाले भरे हुए बदन वाली औरत थी. उसे देखकर कई बार मैंने सोचा कि एक बार तो कम से कम शब्बो के गुलाबी होंठों से अपने लंड की सेवा करवानी चाहिए.

मैं कई बार अपने बाप की किस्मत को लेकर सोचता था कि क्या किस्मत है साले की … एक तरफ मेरी सौतेली अम्मी नगमा, जैसे साउथ फिल्मों की अभिनेत्री नयनतारा … तो दूसरी तरफ शब्बो जैसे श्रुति हसन को अपने लंड की सेवा के लिए सैट किया हुआ है.

अब अब्बू कभी कभार ही घर आते थे और घर खर्च भेज देते.
उनके घर न आने से घर पर कोई फर्क नहीं पड़ा क्योंकि मैं इलेक्ट्रॉनिक्स सामानों को रिपेयर करने का काम करता हूँ, जिससे घर का खर्चा भी निकल जाता है और थोड़ी बहुत बचत हो जाती है.

मैं और मेरी अम्मी नगमा अजमेर के छोटे से इलाके में एक छोटे से घर मे रहते हैं, जो पुराने जमाने के खंडहर जैसा ही है.

एक के ऊपर एक घर बिल्कुल पैक, ना कोई आवाज सुन सकता है और ना ही कोई घर के अन्दर झांक सकता है.
मुझे कई साल से अपनी अम्मी की जवानी चखने का मन था पर मेरी बहनों ने कभी मुझे चूत की कमी नहीं होने दी.

उन दोनों ने टाइम टाइम पर मेरे लंड की खूब देखभाल की और मैंने भी उनके सारे ख़र्चे और जरूरत पूरी की.
बहनों की शादी के कुछ दिन बाद ही मुझे चुदाई की भयंकर तलब लगी तो सामने अम्मी थी.

मेरा पुराना ख्वाब फिर से जवान हो गया और मैंने सोचा क्यों ना इन्हें ही अपने बिस्तर पर खींच लूँ.
वैसे भी अम्मी कई साल से नहीं चुदी थी तो चूत टाइट होगी … और साली का फिगर तो कमाल है ही.

अपनी अम्मी के बारे में इस तरह की सोच कोई मादरचोद ही रख सकता है, जो कि मैं तभी बन गया था, जब अम्मी को दूर के मामा के आगे घोड़ी बनते देखा था.

ख़ैर ये बात 8 साल पुरानी है, पर याद अभी तक ताज़ा है कि कैसे मामू मेरी अम्मी को लुल्ली पर बैठा कर उछालने की कोशिश कर रहा था और अम्मी कह रही थी कि साले तू भी नासिर की तरह 4 इंच का ढीला हथियार लेकर आ गया है. पता नहीं कब मेरी चूत को मोटे और लंबे लौड़े मिलेगें.

अम्मी की इच्छा सुनकर अब तो बस चाहत थी कि अम्मी को अपने 8 इंच के लंड का जायका चखाया जाए और उसकी चूत का रस पिया जाए.

अम्मी को लंड पर बैठाकर गंदी गंदी गालियां देते हुए उछालने की, मेरे लंड से चुदते वक़्त अम्मी के चहरे पर कामुक भाव देखने की, जिसके लिए मैं रोज़ कुछ न कुछ नया तरीका अपनाता.

अब मैं रोज़ अम्मी की ब्रा और पैंटी पर अम्मी को याद करके मुठ मारकर माल निकालता और अम्मी को गले लगाता या उनके गाल चूमता तो पूरा ठरक से काम लेता.

पहले तो अम्मी ने इन सब चीज़ों को नज़रअंदाज़ किया और खुलकर मुझसे गले लग कर चूम लेतीं.
पर जब मैं हद से ज्यादा आगे जाकर उसके बोबे और गांड पर हाथ लगाकर ये सब करता, तो अम्मी कहतीं कि अब तुम्हारा भी निकाह करना पड़ेगा.
और मुस्कुरा कर चली जातीं.

अम्मी की इन बातों से मेरी हिम्मत और ज्यादा बढ़ गयी.
मैं अम्मी के सामने जाता तो लंड खड़ा करके ही जाता और डबल मीनिंग बात करता.

जैसे अम्मी आज तो दे दो …
अम्मी कहतीं- क्या?
तो बोल देता- चूत ओ … सॉरी सॉरी दूध.
या अम्मी के बूब्स देखते हुए बोल देता- आज तुम्हारे बहुत मोटे लग रहे हैं.

अम्मी बोलतीं- शर्म नहीं है क्या?
तो कहता- अम्मी, मैं तो आपके होंठों की बात कर रहा था.

यही सब कुछ दिनों तक चलता रहा.
फिर मैंने अम्मी की जितनी भी ब्रा और पैंटी थीं, एक बैग में भरकर फेंक दीं.

अम्मी को जब ब्रा और पैंटी नहीं मिलीं, तो उन्होंने मुझसे पूछा कि तूने मेरी ब्रा पैंटी देखी हैं क्या?
मैंने अम्मी से कहा- अम्मी, तुम्हारे निप्पल्स कितने काले और मस्त हैं. तुम्हारी छाती बिना ब्रा के कितनी खूबसूरत दिखती है. तुम आज से ब्रा मत पहना करो.

अम्मी ने कहा- साले सुअर … चुप कर वर्ना थप्पड़ खाएगा.
मैंने भी जवाब दे दिया- अम्मी, तुम्हारे थप्पड़ से डर नहीं लगता, जब तुम्हारी छाती के तरबूज हिलते हैं तब डर लगता है कि कहीं ये बम मुझ पर गिरें, तो मैं मर ना जाऊं.

अम्मी अपना दुप्पटा छाती पर लेकर ये कहती हुई अन्दर चली गईं कि आने दे तेरे अब्बू को वापस … बताती हूँ कि तू कितना बेशर्म हो गया है. अगर तेरी खाल नहीं खिंचवाई तो कहना. अपनी अम्मी को छेड़ता है कमीना.

मैंने जवाब में कहा कि अब्बू तो शब्बो को घोड़ी बनाकर उसकी सवारी करते हुए बाल खींचने में बिजी होंगे.

अम्मी ने मेरी इस बात का कोई जवाब नहीं दिया.
मेरे इस बदले हुए रवैये से अम्मी हैरान भी थीं और परेशान भी.

अम्मी में वैसे तो हवस की कोई कमी नहीं थी, किसी और की बात होती तो वो खुद ही चटाई की तरह बिछ जातीं और बोलतीं- लगा दे लंड, बना ले अपनी रांड … पर अपनी ही बेटे से चुदवाना कैसे हो, शायद यही बात उसे परेशान कर रही थी.

थोड़ी देर बाद मैं अम्मी के पास आया और अम्मी का नाम लेकर बोला- नगमा, तुम मेरी बात का बुरा मत मानो … मैं तुमको बहुत प्यार करता हूँ और खुश देखना चाहता हूँ. मैं जानता हूँ कि रात में तुम बाथरूम में इतनी देर क्यों रहती हो? तू अगर चाहे तो हम-दोनों एक दूसरे की मदद कर सकते हैं.

ये कहते हुए मैंने अम्मी के दोनों हाथों को अपने हाथ से पकड़ लिया.
अम्मी ने अपने हाथ से मेरे गाल को छुआ और बोली- बेटा, तू अभी इतना बड़ा नहीं हुआ कि ये सब बात समझ सके.

मैंने अम्मी की कमर पकड़कर अम्मी की आंखों में देखते हुए कहा- नगमा, मैं और मेरा हथियार इतना बड़ा हो गया है कि बिस्तर पर रात भर तेरी चीखें निकलवा सके.

ये सुनते ही अम्मी ने थप्पड़ मारना चाहा, पर मैंने हाथ पकड़कर उनके बाल पकड़े और अम्मी के होंठों को अपने होंठों से लगा लिया.
मेरे दिल की धड़कन इतनी बढ़ गयी कि मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा था क्या करूँ.

कुछ देर बाद अम्मी के होंठों को हल्का सा काटते हुए छोड़ा तो अम्मी की लिपस्टिक मेरे होंठों पर भी लग गयी थी.
अम्मी ने कहा- बेटा अम्मी हूँ तेरी … ये सब मेरे साथ करेगा … तू कहे तो तेरे लिए तेरी ममेरी बहन हिना को बुला लेती हूँ. वो अपनी जवानी की दहलीज पर है अभी, तेरा पूरा ख्याल रखेगी.

मैंने अम्मी की सलवार में हाथ डाल कर एक उंगली चूत में डाल दी और हिलाने लगा.
मैं बोला- नगमा, तेरी जवानी पर हिना जैसी कई कलियां कुर्बान कर दूँगा मैं … जान आज मना मत करना … तूने मर्द पैदा किया है, अब तेरी चूत से निकले हुए मर्द की मर्दानगी देख बस.

अम्मी- अहह ओह्ह हहह … मादरचोद … अम्मी हूँ तेरी.
मैंने अम्मी के कपड़े उतारते हुए कहा- नगमा, आज से तू मेरी अम्मी नहीं, बेगम है समझी साली छिनाल.

अम्मी- अहह … आदिल … मैं तेरी अम्मी हूँ … कोई अपनी अम्मी के साथ ऐसा नहीं करता.
मैं- नगमा जान, जब भाई के साथ कर सकती हो तो बेटे के साथ क्यों नहीं? कोई गलत बात नहीं है इसमें मेरी जान … देखो तुम कितनी मस्त बदन वाली हो और मेरे पास कितना मस्त लंड है.

मैंने अपने अपने 8 इंच के लंड को बाहर निकालते हुए अम्मी को दिखाया और कहा- क्यों न अब से हम दोनों एक-दूसरे के बदन का भी ख्याल रखें?

अम्मी मेरे लंड को देखती हुई बोलीं- हायल्ला … आदिल तुझे ज़रा भी शर्म-लिहाज़ नहीं रह गया है … मेरे सामने लंड निकल के खड़ा हो गया? वैसे तेरा लंड बहुत बड़ा है. मजा खूब देगा.

मैं- नगमा, आज तो तेरी चूत से निकले इस मर्द के लंड में आग लग चुकी है. आज तो तुझे मुझसे चुदना ही पड़ेगा.
मैंने अम्मी को दोनों हाथों से उठाया और उसी बिस्तर पर ले जाकर पटक दिया, जहां अब्बू और अम्मी सोते थे.

अम्मी- बेटा, मैं तेरी अम्मी हूँ!
मैं- नगमा देख अब इतने नाटक मत कर, मैं जानता हूँ तू कितनी प्यासी है. आज तेरी सारी प्यास बुझा दूंगा बस ये फालतू की बात करने की बजाए कुछ मूड बना जान.

मैं अम्मी की चूत को फैला कर सीधा बिना कुछ कहे उसकी चूत चाटने लगा और जोर जोर से अम्मी की चूत को चूसकर गीला करने में लग गया.

कुछ देर बाद अम्मी की चूत से पानी निकला गया, तो मैंने अम्मी से पूछा- अम्मी, कुछ मज़ा आया?
अम्मी- उउममम … आह … आदिल अहह बेटा … आह …

अम्मी की चूत गीली होने पर मैंने बिना थूक लगाए ही मेरा 8 इंच का लंड अम्मी की चूत के मुँह पर सैट किया और एक जोर का झटका देते हुए कहा- लव यू अम्मी जान.

अम्मी की चूत में आज तक 4-5 इंच की लुल्ली ही गयी थी और इतने साल से वो चुदी भी नहीं थी, मेरा 8 इंच का मोटा लंबा लंड कैसे सहन कर पाती?

मेरे लंड के आधा अन्दर जाते ही वो कराह उठीं- हायल्ला मर गई!

अम्मी के मुँह से इतनी मादक आवाज से लंड में अकड़न और बदन की जकड़न दोनों और बढ़ गई.
अम्मी की चूत से हल्का सा खून भी निकला, जो अलग नशा दे रहा था.

इतना मज़ा बहनों की चुदाई में भी कभी नहीं आया, जितना आज अपनी मां चोदने में आ रहा था.

मैं बिना रुके झटके देने लगा और उसकी चूचियों से प्यासे की तरह दूध पीने लगा.
अम्मी अब मदहोश हो चुकी थीं और मुझे किसी भी तरह की कोई हरकत करने से मना नहीं कर रही थीं बल्कि अब तो सिर्फ सिसकारियां ही भर रही थीं.

मैं लगातार अम्मी की चूत का रस निकालने में लगा हुआ था.

चूत के चुदते-चुदते अम्मी की शर्म खुलने लगी थी.
वो भी अपने हाथों से मेरी पीठ को पकड़ कर अपनी तरफ खींच रही थीं और ‘आह … उफ्फ्फ … हाय … उम्म …’ जैसी आवाज निकालती हुई मुझे अपनी तरफ समेट रही थीं.

मैं- नगमा मेरी बेगम … सुहागरात मुबारक़ हो.
अम्मी अपनी आधी खुली हुई आंखों से देखती हुई बोलीं- आह … आदिल … अन्दर मत झाड़ना बेटा … मेरा ऑपरेशन नहीं हुआ है.

अम्मी से ऐसी बात सुनकर मेरे अन्दर का वहशी और हवस से भर गया.
मैंने लंड निकालकर सीधा अम्मी के मुँह में डाल दिया और रस झाड़ दिया.
आह … क्या मज़ेदार लम्हा था वो … जब मैंने अपनी अम्मी को लंड के नीचे लेकर चोद डाला था.

उस रात मैंने कंडोम लाकर मॉम के साथ रात भर 4 बार संभोग किया और उसकी गांड के छेद की सील भी तोड़ डाली.

पिछले एक साल में मैंने अम्मी की सारी शर्म उतार दी. अब वो किसी गर्ल फ्रेंड की तरह ही मेरे साथ रहती हैं.

उस रात के बाद अम्मी ने कभी मुझे मेरे नाम आदिल से नहीं बुलाया बल्कि सुनो, जान, जानू बेबी, बाबू, हनी, राजा जैसे लफ़्ज़ों से आवाज देने लगीं और मेरे लंड की जरूरत का ख्याल मेरी बहनों से भी ज्यादा अच्छे से रखने लगीं.

दोस्तो, आपको मॉम चुदाई कहानी कैसी लगी. कोई सुझाव भी हो तो साथ में दें.
 

junglecouple1984

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सौतेली मॉम को मेरा लंड पसंद आ गया


मेरे पापा की दूसरी बीवी मुझसे सिर्फ नौ साल बड़ी है. वो मुझे चुदना चाहती थी और मैं भी उसे दिल ओ जान से चोदना चाहता था.

मेरी सौतेली मॉम मुझे चुदना चाहती थी और मैं भी उसे उतने ही दिल ओ जान से चोदना चाहता था.
सौतेली मां थी मेरी, मगर मेरी जान, मेरी रखैल, मेरा प्यार सब कुछ थी वो!

मेरे पापा की दूसरी बीवी है वो!
वो मुझसे सिर्फ नौ साल बड़ी है.

अब वो मेरी बीवी बन कर और खुल कर मेरा लंड लेना चाहती थी. वो अपने हर छेद में मेरे लंड का मजा लेना चाहती थी.
उसकी साड़ी के अन्दर नंगी मोटी चूचियां, गोरी कमर, सुडौल चूतड़, हूरों जैसे तीखे नैन नक्श, जो हमेशा मुझे ही देखते रहते थे और मैं उन्हें!

हमारे घर में काम करने के लिए कई नौकर हैं, गाड़ियां हैं. बड़ा घर है और बहुत पैसा है.
पर उसे बस मैं चाहिए था और मुझे वो!

घर मैं सबके होते हुए भी हम जमकर चुदाई करते, वो मुझे अपनी हसीन चूचियां दिखा दिखा कर उकसाती रहती.

एक दिन मैं उसके चूतड़ पकड़ कर उसे कुतिया की तरह चोद रहा था और वो तेज़ तेज़ चिल्ला रही थी.
मेरा बड़ा लंड उसकी चूत की ताबड़तोड़ चुदाई कर रहा था.

उसका गोरा नंगा जिस्म आलीशान बेडरूम में हीरे सा चमक रहा था.
वो लंड के मजे लेती हुई मेरी औरत की तरह चुद रही थी.

मॉम- आह आह चोद दे मेरी जान … मेरे यार … पेल दे अपना लौड़ा अपनी मॉम की चूत में!

उसकी बाईं जांघ और दाईं चूची के काले तिल का मैं दीवाना हूं.
जब मैं उसे चोदता हूँ तो हम एक दूसरे को खा जाते हैं और बहुत काटते हैं.

फिर वो मेरी उन प्यार की निशानियों वो घर में सबसे छुपाती फिरती है.

मॉम- आह चोदो मुझे … मैं तुम्हारी बीवी, तुम्हारी रखैल, तुम्हारी रांड, चोदो मुझे मेरे लाल, मेरे खसम … मेरे सरताज. आह तुमसे चुदने के लिए ही बनी हूं मैं … आह आह हचक कर चोदो मुझे … मेरी जवानी, मेरा हुस्न, ये इश्क़ बस तुम्हारे लिए ही है … आह चोदो मुझे, चोदो माय लव.

वो गांड हिला हिला कर लंड चूत में ले रही थी और मैं भी उसकी ताल में ताल मिला कर उसे ताबड़तोड़ चोद रहा था.

मॉम तेज़ तेज़ धक्के मार रही थी और मैं सटासट अपना लंड उसकी चूत में अन्दर तक पेल रहा था.

चुदाई के बाद मैंने एक सिगरेट जलाई और वो आकर नंगी मेरे सीने से लिपट गयी.
उसकी कड़क चूचियां मेरे सीने से लग रही थीं और वो हांफ रही थी.

मैंने सिगरेट उसके मुँह में लगायी और वो एक कश मार कर धुआं बाहर छोड़ने लगी.
उसकी सांस काबू में आयी.

पहले वो सिगरेट नहीं पीती थी पर मेरे साथ रह कर वो सिगरेट, दारू सब नशा करती है और उसे भी बहुत मज़ा आता है.

हमने कभी किसी की शादी में जाकर, कभी काम के नाम पर भारत के हर नगर में चुदाई की है.
मैंने उसे नंगी करके गोवा के बीच पर खूब चोदा है.

बैंकॉक, दिल्ली हर जगह मेरे लंड पर बैठ कर उसने सवारी की है.
मैंने उसे बहुत मॉडर्न बना दिया हैं, जब हम अकेले होते हैं, तो वो मस्त टॉप और वैस्टर्न ड्रेस पहनती है.

वैसे घर में वो सिर्फ सूट और सलवार, या कभी कभी साड़ी पहनती है.

मैंने एक कश खींच कर सिगरेट को उसके होंठों की तरफ बढ़ाया और उसके चुचों को देखने लगा.
मॉम के चूचे का काला तिल किसी नगीने सा चमक रहा था.

मैंने आगे झुक कर उस पर एक लव बाइट दे दी.
वो इस्स करके कराहने लगी.

उसने मेरे आधे खड़े लंड को पकड़ा और मेरी छाती को चूमने लगी- तुम मुझे छोड़ कर मुम्बई चले जाओगे, तो मैं अकेली कैसे रहूँगी?
मैं- तुम भी चलो मेरे साथ.

ये सुनकर उसकी पकड़ मेरे लंड पर तेज़ हो गयी, जिसे वो मस्ती से सहलाने लगी.

मॉम- तुम्हारे डैड, भाइयों और भाभियों को क्या बोलूंगी?
मैं- यही कि तुम्हें मेरे साथ रहना है.

उसकी पकड़ लंड पर थोड़ी और टाइट हो गयी और उसने लंड की मुठ मारने की स्पीड थोड़ी तेज़ कर दी.

मॉम- हाँ, मुझे तुम्हारे साथ ही रहना है.
मैंने सिगरेट का धुआं छोड़ते हुए कहा- और मुझे भी.

ये सुनकर वो मुझे थोड़ी और चिपक गयी और अपने होंठ मेरी छाती पर रख दिए.
मैं एक और कश मार कर बोला- तुम्हारे बिना मैं ज़ी नहीं पाऊंगा.

अब मॉम के हाथ मेरे लंड पर तेज़ तेज़ चलने लगे और वो आहें भरने लगी.
उसके चूचे कड़े हो गए और कमरे में उसके मदमस्त जिस्म की खुशबू छा गयी.
उसका रोम रोम पानी छोड़ रहा था.
वो फिर से चुदासी हो रही थी.

उसने मेरे हाथ से सिगरेट ली और उठ कर खड़े लंड पर बैठ गयी.
चूत में लंड फंसा कर वो मजे में गांड हिलाने लगी और आराम आराम से चुदने लगी.

मॉम- क्या बोलोगे अपने दोस्तों को … कि मैं कौन हूं?
मैं- क्या बनना चाहती हो तुम मेरी?
मॉम- बीवी.

ये बोलते ही मां लंड पर जोर जोर से ऊपर नीचे होने लगी.
उसका चेहरा लाल हो गया.

मैंने कहा- बीवी बना कर भी मॉम ही बनी रहोगी?
मॉम- हां. मॉम बोल कर चुदने में बहुत मज़ा आता है. ऐसा लगता है कि मैं अपने मर्द बेटे के लंड की सवारी कर रही हूं.

मैं- और?
मॉम- और जब तुम मुझ नंगी करके कहीं भी चोद देते हो, तो उस वक्त का मजा तो मैं बता ही नहीं सकती हूँ.

मैं- और?
मॉम- जब तुम पास से गुजरते हो, मुझे देखते हो, मैं झड़ जाती हूँ.

मैंने मॉम की तनी हुई चूचियां पकड़ीं और नीचे से धक्के देने लगा.
उसने सिगरेट एश ट्रे में बुझाई और आंख बंद करके लंड से चुदने का मजा लेने लगी.

जब मेरे धक्के तेज़ हुए तो वो मेरे सीने पर गिर गयी और अपनी गांड हिला हिला कर मेरा साथ देने लगी.
उसके चुचे मेरी छाती से रगड़ रहे थे और वो मस्त होकर आह आह करके चुदवा रही थी.

हर धक्के के साथ उसकी जान निकल रही थी.

कुछ देर बाद मॉम ने कहा- अब मुझे कुतिया बना कर चोदो, एकदम बाजारू रंडी की तरह चोदो.

मैं- तुझे मैं मिशनरी आसन में चोदूंगा रानी की तरह!

इतना सुनते ही वो कांप उठी और उसकी चूत ने पानी छोड़ दिया.
वो मुझे हर जगह काटने लगी. मैंने उसे वैसे ही उल्टा कर दिया.

वो मेरे नीचे आ गई थी औऱ मेरा लंड उसकी चूत में अन्दर था.
उसने मेरे हाथ जोर से पकड़ लिए और दे दनादन चुदने लगी.

मैं तेज़ तेज़ धक्के लगा रहा था.
वो गांड उठा उठा कर पूरा लंड ले रही थी.

हम दोनों बिल्कुल पसीना पसीना हो गए थे.
मैंने नीचे झुककर उसके एक चुचे को मुँह में भर लिया और उसे और तेज़ चोदने लगा.

मॉम- आह … मेरी जान चोद मुझे मेरे मर्द … मुझे अपने बच्चे की मां बना दे मादरचोद.

उसके ये कहते ही मैं उसके होंठ चूमने लगा और वो और तेज़ धक्के लगवा कर चुदवाने लगी.
हम अब एक दूसरे को देख कर चोद रहे थे.

हर धक्के के साथ उसके चेहरे पर हाव भाव बहुत रंगीन होते जा रहे थे. वो मेरी मॉम थी, जो नंगी होकर अपनी सौत के बेटे से चुद रही थी.

दोस्तो, मेरी सौतेली मॉम रूह से भी नंगी थी और जिस्म के नशे में सराबोर थी.

ये उन दिनों की बात है, जब मैंने मां को पहली बार चोदा था.
एक बार लंड लेने के बाद वो थोड़ा शर्मा रही थी.
शायद वो मुझे तड़पा रही थी और खुद को भी.

हमारा इश्क़ कई महीनों से चल रहा था, आंखों में देखना, एक दूसरे को छूना, वो पहली बार खुल कर प्यार की बातें, वो उसका मेरे प्यार का इक़रार हम दोनों को कम उम्र के प्यार के जोड़े जैसी फीलिंग देते थे.
जब हमने पहली बार एक दूसरे के होंठ चूसे और जब मैंने उसे पब के टॉयलेट में ले जाकर लंड चुसवाया, तब से अब तक वो मुझसे कभी दूर नहीं हुई थी.

आज जब हम दोनों एक दूसरे को एक बार ज़ी भर कर चोद चुके हैं और चूस चुके हैं और अपनी जवानी की प्यास को आंखों से अभी चोद रहे थे.
शुरुआत में हम दोनों बस एक दूसरे को प्यासी नजरों से देखते रहते थे, बस चुदाई की बात नहीं कर रहे थे.

उस दिन वो मुझे अपनी चूची भी नहीं दिखा रही थी, जो वो हमेशा मेरे लिए खुली रखती थी. उसने अपने मम्मों पर चुन्नी डाल रखी थी.
पर वो आते जाते अपना सेक्सी जिस्म दिखा रही थी.

उस रात एक बजे करीब मैं किचन में कुछ खाने के लिए ढूंढ रहा था, तभी उसकी पीछे से आवाज़ आयी.
मॉम- क्या चाहिए?

मैंने पीछे मुड़ कर उसकी तरफ देखा, वो हरे रंग के सूट में रात को लिपस्टिक लगा कर मेरे सामने खड़ी थी.
मैं उसकी आंखों में देख रहा था और वो मेरी.

कुछ देर बाद वो बोली- एक सिगरेट पिलाओ.
मैं- कमरे में है.
‘चलो.’

वो खुद तड़प रही थी और तड़पना चाह रही थी. वो आगे आगे मेरे कमरे की तरफ चल दी.
मैंने कमरे में जाकर उसके होंठों में एक सिगरेट लगा दी और जला दी.

वो कश मारने लगी.

उसका मस्त गुदाज़ जिस्म हर सांस के साथ थिरक रहा था.
उसके चुचे सौतेले माँ बेटे का सेक्स की इच्छा में और भी भारी हो गए थे. उसके चेहरे पर एक चुदास साफ़ दिख रही थी.

उसने दो तीन कश मार कर अपनी लिपस्टिक लगी सिगरेट मुझे दी और मैं बेड पर लेट कर उसे पीने लगा.
वो मुझे देख रही थी और मैं उसे.

एक दो कश मार कर मैंने उसे सिगरेट वापिस की और उसे पीते हुए देखने लगा.
वो सिगरेट ऐसे पी रही थी, जैसे मेरे होंठों को चूम रही हो.

मेरा मन भी उसकी सारी लिपस्टिक खाने का था, पर मैं उसे खुद चुदवाने की कहने पर लाना चाहता था.
अबकी बार उसने मुझे सिगरेट दी और आंख बंद करके नशे का मज़ा लेने लगी.

मेरी सौतेली मॉम बहुत खूबसूरत थी. बिल्कुल कोई मुगलिया मलिका यार कोई शाही रांड.
जैसे ही उसने आंख खोल कर मुझे देखा, तो मैंने पाया कि उसकी आंखों में अलग ही नशा था.

मैंने उसकी आंखों में देखते हुए, अपना हाथ ले जाकर उसकी चुन्नी सीने पर से हटा दी.
उसके बड़े बड़े चुचे हरे रंग के डीप कट वाले सूट में चमकने लगे.

ऐसा होते ही मॉम ने एक गहरी आह भरी. मैंने उसे कमर से पकड़ कर अपनी तरफ कर लिया.

उसके चुचे मेरी नज़रों के सामने थे. मैंने सिगरेट का एक कश लिया और उसके चुचों पर धुआं छोड़ा.
मुझे लगा जैसे उसके चुचे हर सांस के साथ उभर रहे थे औऱ वो मेरी आंखों में देख रही थी.

फिर मैंने सिगरेट उसे दी और उसने धीरे धीरे मेरी आंखों में देखते हुए चुन्नी से अपने चुचे फिर से ढक लिए और चली गयी.
मैंने भी जाने दिया.

अगले दिन रात को वो मेरे कमरे में आ गई और मुझसे सिगरेट मांगी. आज वो एक नाइटी पहनी थी.
मैंने उस हाथ पकड़ कर अपने पहलू में खींच लिया.

वो भी कटी डाल की तरह मेरे पहलू में आ गई.
मैंने उसे सिगरेट दी और उसने खुद जलाई.

मैंने उसके मम्मों पर हाथ फेरा, तो उसने अपनी नाइटी की डोर खोल दी.
मैंने उसके मम्मे को पकड़ लिया और वो मजे से मुझसे अपने दूध मसलवाने लगी.

सिगरेट के बाद मैंने उसे अपने नीचे ले लिया. उसने टांगें फैला दीं. साली चुदने ही आई थी. अन्दर चड्डी भी नहीं पहनी थी उसने.
मैंने लंड पेला और चोदना शुरू कर दिया. उस दिन से मेरी सौतेली मॉम मेरी रांड बन गई थी.

बाद में वो रिश्तेदारों से मिलने के बहाने मुझसे हाईवे के खेतों में नंगी होकर भी चुदी.

सौतेले माँ बेटे का सेक्स आपको पसंद आया? कमेंट्स में बताएं.
 

sex thinker

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Mummy aur uncle wli story post krna bro please aur ek ye story wli bhi 👇🏻

Mujhe ek story dund ne mein madad kijiye mujhe character k Naam yad nahi par ha story thodi yaad hai ek aurat APNI beta aur beti ko Leke APNI behen k beti shadi mein jati hai shadi ka ghar tha to jagah Kam thi toh wo aurat aur uska beta ek chote se kamre main sone k Liye roke uske bete ko sex ki Kuch juada samaj nahi tha toh wo Apne mom se Pucha aur mom bhi thodi garam thi usko samjate waqt apnar Kam ras bhi nikala phir subah ladka uske dekhta hai ki uski maa aur mausi kisss kar Rahe hai fir uski maa APNI behen ko bolti hai dar ne ki jarurat nahi ye kisi ko nahi bateye ga ha aur fir us rat maa ne Apne bete se chudwaya aur shadi khatam hone k Baad APNI behen aur jija bete k sath milke foursome kia uska pati bhi khule bhichar wala tha aur Apne ghar Jake APNI beti ko bhi bete se aur pati se chudwaya
Bhi


Bhki tum kaam bahut mst kr rhe ho bro 🫡
 
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