Indeed Fabulous.. Incest feeling through out reading, really enjoyed
Thanks so much, for gracing the thread and nice wordsIndeed Fabulous.. Incest feeling through out reading, really enjoyed
Thanks so bas aap aati rahiye saath deti rahiyeBahute hot... BDSM ka bharpur masala
Nice Update Komal ji
Chhotki to chodwane ki chaska lag chuki hai jo har waqt taiyar ho jaa rahi hai
ab gadi main kitni baar chhotki ki chodai hoti hai dekhte hai
Hot zabrjast update Komal jiiकच्ची अमिया का रस
झुक के उन्होंने अपनी ऊँगली से पहले तो उन बाइट मार्क्स को सहलाया , और फिर झुक के उन्हें चूम लिया और उस के बाद उनकी जीभ मैदान में आ गयी , बस होतीं से थोड़ी बाहर निकली और उन बाइट मार्क्स को जीभ से सहलाने लगे , दुलराने लगे , ...
फिर उनकी जीभ उस किशोरी , दर्जा नौ वाली के उभार के बेस पर हलके हलके गोल गोल सहलाने लगी और धीरे धीरे ऊपर बढ़ने लगी ,
एक हाथ के अंगूठे और तर्जनी के बीच छुटकी के निप्स को ,... और निप्स तो उसके बस अभी आ ही रहे थे , जैसे नयी नयी आयी छीमी ( कच्ची मटर की फली ) में मटर के दाने जैसे बनने शुरू होते हैं एकदम वैसे ही छोटे , छोटे
लेकिन उनकी उँगलियों का असर , ... वो छोटे छोटे निप्स भी अब एकदम कड़े हो गए थे , छुटकी की छोटी छोटी चूँचियाँ पथरा रही थी ,
मस्ती से छुटकी की हालत खराब हो रही थी , वो हलके हलके सिसक रही थी , मचल रही थी , ....
पर उसके जीजू तो ,...
कुछ देर में ही उनकी लालची जीभ स्साली के खुले उरोजों के ठीक बीच सीधे निप्स पर ,...
और फिर मैं समझ गयी क्या होने वाला है , कभी वो जीभ से फ्लिक करते तो कभी अपने दोनों होंठों के बीच लेकर हलके हलके चूसने लगे
अब तो उनकी साली की , वो कच्ची कली , कमसिन नयी नयी आयी जवानी , ... अपनी दोनों जाँघों को आपस में रगड़ रही थी
बस उन्होंने छुटकी की चुसाई की रफ़्तार बढ़ा दी ,
और मेरी निगाह अब अपनी छोटी बहन की जाँघों में चिपकी कसी चड्ढी पर चिपकी थी ,
एक हल्का सा धब्बा वहां उभरने लगा , छुटकी कस के गीली हो रही थी ,... हलके हलके वो अपने लौंडा मार्का , छोटे छोटे चूतड़ फर्स्ट क्लास की सीट पर पटक रही थी ,
उनकी जीभ और होंठों का असर मुझसे ज्यादा कौन जानता है ,
पहली रात को ही , .. मेरी सहेलियों ने बार बार सिखाया था , ... ' अरे जीजू जी को थोड़ा इंतजार कराना , ... घंटा डेढ़ घंटा तब जाके नाड़ा खोलने देना ,...
मैंने सोचा था इतना तो नहीं , लेकिन आधा पौन घंटा तो उन्हें तड़पाऊंगी , तभी नाड़े पर उन्हें हाथ लगाने दूंगी , ...
पर एक तो मेरी ननदों की शरारत , मुझे बैकलेस चोली , सिर्फ एक पतली सी डोरी ,...
बस , पांच दस मिनट में वो डोरी खुल के उनके हाथ में , फिर मेरे जोबन उनके कब्जे में
और चार पांच मिनट जिस तरह से उन्होंने मेरे निप्स को पहले धीरे धीरे हलके हलके फिर कस के चूसना शुरू कर दिया ,....
मैंने खुद उनका हाथ पकड़ के अपने लहंगे के नाड़े पर ,...
यही हालत छुटकी की भी हो रही थी
छुटकी की हालत खराब होती जा रही थी , वो जोर जोर से अपने छोटे छोटे चूतड़ ट्रेन की बर्थ पर पटक रही थीं , दोनों जाँघे आपस में रगड़ रही थी ,
लेकिन दोनों हाथ उसके , उसी की ब्रा से ट्रेन के डिब्बे से बंधे थे , हिल भी नहीं सकती थी बेचारी , ...
जीजा उसके अब कस कस के उसके उभार को चूस रहे थे , मसल रहे थे ,... उनके चेहरे को देख कर लग रहा था कच्ची अमिया कुतरने में उन्हें कितना मज़ा आ रहा था ,
और मैं अपनी छोटी बहन के दूसरे उभार को देख रही थी , उस कच्चे टिकोरे पर भी कुतरे जाने के ढेर सारे निशान थे
मैं भी ललचायी नजरों से देख रही थी ,
कच्ची अमिया देख के खाली मरदों का मन ललचाता हो ऐसा नहीं है ,
खूब खटमिठ्वा , ... जस्ट आते हुए ललछौंहा जोबन , ... रुई के फाहे ऐसे मुलायम , मुश्किल से दीखते निपल , ...
हम औरतों का भी मन ललचाता है इन जैसे टिकोरों को कुतरने का ,...
इनसे ज्यादा कौन मेरे मन को पहचानता , इन्होने मेरी ललक और झिझक दोनों को पहचान लिया और मेरी गरदन पकड़कर नीचे की ओर
अब छुटकी का एक जोबन इनके होंठों के कब्जे में था और दूसरा मेरे और दोनों के बीच होड़ लगी थी , कौन उस दर्जा नौ में पढ़ने वाली कच्ची कली की उठती हुयी चूँचियों का रस ज्यादा से ज्यादा चूसता है ,
मेरे होंठ कच्ची कलियों के लिए कम बदमाश नहीं थे ,
थोड़े ही देर में वो कच्ची कली चलती ट्रेन में , बर्थ पर अपने चूतड़ पटक रही थी , चीख रही थी , सिसक रही थी ,
अच्छा हुआ इन्होने कस के उस कली की कलाइयां ट्रेन की खिड़की से उसी की ब्रा से कस के बांध दी थीं अब वो चूतड़ पटके , चीखे चिल्लाये , लेकिन बर्थ से रत्ती भर भी हिल नहीं सकती थी ,
हम लोग जैसे बद कर छुटकी की छोटी छोटी चूँचियाँ चूस रहे थे ,... कनखियों से मैंने देखा उसकी छोटी सी सफ़ेद चड्ढी अब अच्छी तरह गीली हो गयी थी , इसका मतलब वो पूरी तरह पनिया गयी थी ,
मुझसे नहीं रहा गया , मैंने एक हाथ उसकी चड्ढी के ऊपर से ,... पहले हलके हलके सहलाया फिर कस के दबोच लिया उसकी नन्ही चुनमुनिया को ,
आगे आगे देखिये क्या होता है,कोमल जी
अब अगर ट्रेन मे एक मजेदार कॉकटेल हो जाए तो बहुत ही आनद आ जायेगा
कृपया इस अन्यथा ना ले मेरी कभी भी ऐसी दरकार नही है कि किसी भी कहानी के बारे मे सुझाव दूँ क्योकि जब लेखक या रचनाकार कोई कहानी लिखता है तो उसकी रूपरेखा उसके दिमाग़ मे रहती ही एवम उसमे तब्दीली पसंद नही करता है
ये मात्र मेरा अनुरोध है
Thanks so much, bas aap saath dete rahiye , jude rahiye to pata chalega ki kya hone vaala chhutki ka,...Hot zabrjast update Komal jii
Jija to jija bahan bhi chhotki ki jawani dekh kar machal rahi hai bechari chhotki to tadap rahi hai chut main land lene ke liye
Lagta hai gadi main chhotki ki chut bahut pani chhodne wali hai
आपकी सास और ननद का तो हमे भी इंतजार है ...आगे आगे देखिये क्या होता है,
कुछ ट्रेन में , कुछ घर पर,... मेरी सास और ननद भी तो बैठी हैं, उन के लिए ये कच्ची अमिया एक सरप्राइज होली गिफ्ट होगी। नन्दोई जी तो हैं पिछवाड़े के ताक में